संसद की सुरक्षा में चूक मामले में जांच तेज, 50 टीमें, 6 राज्यों में कर रही जांच, हर आरोपी के लिए अलग टीम तैनात
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13 दिसंबर को संसद पर हुए हमले ती 22वीं बरसी थी। इसी दिन एक बार फिर देश के सबसे सुरक्षित कहे जाने वाले संसद भवन में सुरक्षा में बड़ी चूक का मामला सामना आया। लोकसभा की कार्यवाही के दौरान दो युवक सदन में प्रवेश कर गए और दोनों शख्स दर्शक दीर्घा से कूद लगाई। इस मामले में चार दिन बाद दिल्ली पुलिस ने रविवार को जांच तेज करते हुए आरोपियों के परिवार के सदस्यों के बयान दर्ज किए और राजस्थान के नागौर से टूटे और जले हुए कुछ मोबाइल फोन के टुकड़े बरामद किये।
संसद की सुरक्षा में चूक के मामले में दिल्ली स्पेशल सेल की टीमें राजस्थान, हरियाणा, मैसूर, लखनऊ, बंगाल, महाराष्ट्र जैसे राज्यों में जांच कर रही हैं। जांच के लिए 50 अलग टीमें बनाई गईं हैं जो डिजिटल और बैंक डिटेल्स और आरोपियों के बैकग्राउंड को खंगाल रही हैं। जांच में स्पेशल सेल अपने साथ आरोपियों को लेकर जा रही है। उन्हें उस राज्य के सेफ हाउस में रखकर जांच की जा रही है।
सदन में कूदने वाले आरोपी सागर शर्मा की जांच स्पेशल सेल साकेत, सदर्न रेंज की टीम कर रही है। सागर को कहां लेकर जाना है, उसकी पूरी इन्वेस्टिगेशन और रिकवरी सदर्न रेंज स्पेशल सेल के हवाले है। मास्टरमाइंड ललित झा को स्पेशल सेल, जनकपुरी साउथ वेस्टर्न रेंज की टीम को हैंडओवर किया गया है। इसी टीम ने आरोपियों के जले हुए मोबाइल फोन बरामद किए हैं। एक अन्य आरोपी मनोरंजन को एनडीआर, लोधी रोड स्थित स्पेशल सेल को हैंडओवर किया गया है। इसके अलावा नीलम की पूरी इन्वेस्टिगेशन न्यू फ्रेंड्स कॉलोनी, स्पेशल सेल के पास ही है, जिसे स्पेशल सेल का काउंटर इंटेलिजेंस यूनिट भी कहा जाता है। ऐसे ही सभी आरोपियों को स्पेशल सेल की अलग-अलग यूनिट को इन्वेस्टिगेशन के लिए दिया गया है।
स्पेशल सेल के सूत्रों का कहना है कि अलग-अलग यूनिट जब इंडिविजुअल एक-एक आरोपी की जांच कर लेंगी तो उसके बाद इन्हें एनएफसी स्पेशल सेल की टीम को सौंप दिया जाएगा। फिर इन सबको एक साथ बैठाकर पूछताछ की जाएगी।
बता दें कि दिल्ली पुलिस ने संसद की सुरक्षा में सेंध के मामले में कथित संलिप्तता के लिए अब तक छह लोगों-सागर शर्मा, मनोरंजन डी, अमोल शिंदे, नीलम देवी, ललित झा और महेश कुमावत को गिरफ्तार किया है। आरोपी सागर शर्मा और मनोरंजन डी शून्यकाल के दौरान दर्शक दीर्घा से लोकसभा कक्ष में कूद गए थे और उन्होंने ‘केन’ से पीला धुआं उड़ाते हुए नारेबाजी की जिसके बाद सांसदों ने उन्हें पकड़ लिया था। लगभग उसी समय संसद भवन के बाहर दो अन्य आरोपियों अमोल शिंदे और नीलम देवी ने ‘केन’ से रंगीन धुआं फैलाते हुए ‘तानाशाही नहीं चलेगी’ के नारे लगाए थे। गेट के बाहर मौजूद झा ने इस कृत्य को अपने मोबाइल फोन पर रिकॉर्ड किया था। इसे सोशल मीडिया पर अपलोड कर अपने दोस्तों के साथ शेयर करने के बाद वह राजस्थान के नागौर चला गया. कुमावत और आरोपी कैलाश ने कथित तौर पर वहां उसके ठहरने की व्यवस्था की थी, ये दोनों चचेरे भाई हैं। बाद में झा और कुमावत ने दिल्ली आकर पुलिस के सामने आत्मसमर्पण कर दिया।
Dec 18 2023, 13:41