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150 रुपये के लालच में महिला ने गंवाए 14.45 लाख, वेबसाइट में रिव्यू करने पर रुपये देने का दिया झांसा

रायपुर-    सिविल लाइन इलाके में एक महिला साइबर ठगी की शिकार हो गई। साइबर ठगों ने उन्हें वाट्सऐप पर मैसेज करके घर बैठे वेबसाइट में रिव्यू करने पर 150 रुपए देने का झांसा दिया था। महिला आसानी से शातिर ठग की बातों में आ गई। शुरुआत में ठगों ने उन्हें कुछ राशि दिया।

इसके बाद 16 बैंक खातों में 14.45 लाख की राशि जमा करवाकर नहीं लौटाया। ठगी की शिकार महिला की शिकायत पर पुलिस ने अज्ञात साइबर ठगों के खिलाफ अपराध दर्ज कर लिया है। आरोपितों का फिलहाल पता नहीं चल पाया है।

महिला को झांसे में लेने के लिए अधिक रुपये दिए

सिविल लाइन थाना पुलिस के मुताबिक सेक्टर एक, शंकरनगर निवासी सुदीप्ती राय पति कौशल किशोर(29) के मोबाइल में 12 अक्टूबर को एक वाट्सएप मैसेज आया था। जिसमें महिला को अलग-अलग वेबसाइड पर रिव्यू करने का झांसा देकर प्रति रिव्यू 150 रूपये देना और घर बैठे पैसे कमाने की जानकारी दी। महिला को विश्वास में लेने शातिर ठगों ने तीन हजार रुपए के बदले सात हजार 800 रुपए भी उसके खाते में भेजा। इससे महिला का साइबर ठगों पर भरोसा बढ़ता गया।

ठगों ने 16 बैंक खातों में कुल 14 लाख 45 हजार रुपए जमा करवाया

दूसरी ओर साइबर ठगों ने उनसे राशि बढ़ा-बढ़ा कर जमा करवाना शुरू कर दिया। जैसे ही महिला ने 10 हजार रुपए जमा किया, उसके बदले बढ़ी राशि नहीं मिली।इसके बाद राशि लौटाने के नाम पर साइबर ठगों ने 16 बैंक खातों में कुल 14 लाख 45 हजार रुपए जमा करवा लिया और राशि वापस नहीं किया। तब महिला को साइबर ठगी होने का एहसास हुआ। उन्होंने तत्काल सिविल लाइन थाने में शिकायत की।

अगर ‘मोदी की गारंटी’ है तो पूरे देश में 450 में सिलेंडर दे दीजिए : CM बघेल

रायपुर- मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने महंगाई के मुद्दे पर कटाक्ष करते हुए भाजपा और पीएम मोदी पर निशाना साधा है. सीएम बघेल ने ट्वीट कर कहा,

प्रधानमंत्री तो पूरे देश का होता है, फिर वह राज्यों की जनता के साथ भेदभाव कैसे कर सकता है? खैर, मोदी जी की गलत नीतियों के कारण देशवासी महंगाई से त्रस्त हैं. यह तो उन्होंने स्वयं ही स्वीकार कर लिया है.

सीएम भूपेश बघेल ने कहा, अगर “मोदी की गारंटी” है तो पूरे देश में ₹450 में सिलेंडर दे दीजिए, जनता को केंद्र सरकार के प्रकोप से कुछ तो राहत मिलेगी.

आदिवासियों को उनकी जमीन से उजाड़ना मानवता के खिलाफ अपराध : हरिचंदन

रायपुर- छत्तीसगढ़ के राज्यपाल विश्वभूषण हरिचंदन ने कहा है कि अगर कोई आदिवासियों को उनकी जमीन से बेदखल करता है, तो यह मानवाधिकार का उल्लंघन है।

भुवनेश्वर के जयदेव भवन में गत दिवस आयोजित मिट्टी, मां और मानवाधिकार विषय पर आयोजित राष्ट्रीय कार्यशाला में राज्यपाल ने कहा कि आदिवासियों को अपना अधिकार और मानवाधिकार को जानना चाहिए। वे आज भी कई सरकारी सुविधाओं से वंचित हैं। उनके अधिकारों को कम नहीं आंका जाना चाहिए। राज्यपाल ने कहा कि कमजोर, पीड़ित, उत्पीड़ित वर्ग के लोग भी अपने मानवाधिकारों से वंचित हैं। प्रत्येक व्यक्ति का मानवाधिकार होता है। यह हर व्यक्ति को मिलना चाहिए। राज्यपाल ने सभी से आह्वान किया कि वे कमजोर लोगों को उनके मानवाधिकारों का एहसास कराने के लिए लड़ने में मदद करें। उन्होंने कहा कि मानवाधिकारों की रक्षा करना सरकार की जिम्मेदारी है। हर जागरूक युवा, नागरिक को मां, माटी और मानवाधिकार की रक्षा के लिए आवाज उठानी चाहिए। इसके लिए संविधान के प्रावधानों को लागू किया जाना चाहिए।

पृथ्वी पर तेजी से बढ़ रहे विभिन्न प्रकार के प्रदूषण पर हरिचंदन ने चिंता जाहिर की। उन्होंने कहा कि अगर हम अभी से प्रदूषण को नहीं रोकेंगे तो यह महामारी का रूप ले लेगा। राजधानी दिल्ली में हाल ही में प्रदूषण के कारण लोगों को हुई पीड़ा का उल्लेख करते हुए राज्यपाल ने कहा कि प्रदूषण से बचने तथा देश और राज्य की रक्षा के लिए हर व्यक्ति अभी से जागरूक हो जाए।

इंडिया-ऑस्ट्रेलिया मैच को देखने के लिए दर्शकों को कम से कम साढ़े तीन हजार रुपए देने होंगे

रायपुर-   रायपुर में 1 दिसंबर को खेले जाने वाले भारत और ऑस्ट्रेलिया के बीच T-20 मुकाबले के लिए टिकटों की बिक्री शुक्रवार से शुरू हो गई है। मैच शहीद वीर नारायण सिंह क्रिकेट स्टेडियम में होगा। मैच की टिकट पेटीएम डिजिटल प्लेटफॉर्म पर ऑनलाइन ही बुक हो रही है।

टिकट के दामों को अलग-अलग कैटेगरी में बांटा गया है। रायपुर में होने वाले T-20 मैच को देखने के लिए दर्शकों को कम से कम साढ़े तीन हजार रुपए देने होंगे। स्टूडेंट्स को प्रूफ देने पर टिकट एक हजार रुपए में मिलेगी। महंगे टिकट ने क्रिकेट प्रेमियों का टेंशन जरा बढ़ा दिया है।

छत्तीसगढ़ स्टेट क्रिकेट संघ के अध्यक्ष जुबिन शाह ने दावा किया कि रायपुर में क्रिकेट का आयोजन तिरुवनंतपुरम या गुवाहाटी जैसे शहरों से महंगा होता है। रायपुर का स्टेडियम भारत का तीसरा सबसे बड़ा स्टेडियम है लिहाजा यहां आयोजन से जुड़े खर्च ज्यादा हैं।

उन्होंने बताया कि जो काम गुवाहाटी के स्टेडियम में 200 गॉड्स कर सकते हैं, रायपुर के स्टेडियम में 1300 गॉड्स लगाने पड़ते हैं । लॉजिस्टिक, सिक्योरिटी बहुत सी चीजें हैं, जिनमें यहां खर्च अधिक होता है। बड़े शहरों में होने वाले मैच के टिकट्स की तुलना में रायपुर में तय किए गए दाम कम ही हैं। जुबिन के मुताबिक बाकी की कैटेगरी में जो टिकट हैं जैसे सिल्वर, गोल्ड, प्लैटिनम स्टैंड और कॉर्पोरेट बॉक्स इनमें खाने-पीने की व्यवस्था भी दी जाएगी।

PRSU में तीन दिवसीय राष्ट्रीय रसायन सम्मेलन शुरू, वैज्ञानिकों ने नवाचार, प्रयोग और खोज पर दिया जोर

रायपुर-    पं. रविशंकर शुक्ल विश्वविद्यालय के रसायन अध्ययनशाला की ओर से तीन दिवसीय राष्ट्रीय सम्मेलन का आयोजन किया गया है। 21वीं राष्ट्रीय सम्मेलन आन सरफेसटेंट, इमालसन एंड बायोकोलाइड का उद्घाटन विक्रम विश्वविद्यालय उज्जैन के कुलपति प्रो. अखिलेश पांडेय ने किया। उन्होंने कहा कि वर्तमान समय में इस प्रकार के महत्वपूर्ण सम्मेलनों की बहुत आवश्यकता है।

नवीन अनुसंधानों के निष्कर्षों का उपयोग प्रदेश तथा देश के हित में करना चाहिए। उन्होंने भारतीय ज्ञान परंपरा तथा नई शिक्षा नीति पर जोर दिया। सम्मेलन की अध्यक्षता करते हुए पीआएसयू के कुलपति डा. सच्चिदानंद शुक्ल ने बताया कि यह सम्मेलन शोधकर्ताओं के लिए सतह रसायन विज्ञान और प्रोद्योगिकी के क्षेत्र में नवीनतम प्रगति पर अद्यतन रहने के लिए एक महत्वपूर्ण मंच है।

उन्होंने दर्शन के साथ रसायन को जोड़ने पर जोर दिया, यह सम्मेलन ऊर्जा रूपातंरण, उत्प्रेरक, स्वास्थ्य देखभाल, नैनोप्रोद्योगिकी, सामग्री विज्ञान और पर्यावरण संरक्षण, फार्मास्यूटिकल्स विषयों के अनुसंधान की दिशा में मार्गदर्शन करेगा। इंडियन सोसाइटी आफ सरफेस साइंस एंड टेक्नोलाजी, कोलकाता के अध्यक्ष प्रो. असित बरन मंडल ने सोसाइटी के अनुसंधान एवं विकासात्मक गतिविधियों की जानकारी दी। सोसायटी के सचिव प्रो. सौमेन घोष ने सोसायटी की रिपोर्ट प्रस्तुत किया।

विज्ञान के इतिहास और प्रयोग के बारे में चर्चा किया

आयोजन समिति के अध्यक्ष तथा रसायन अध्ययनशाला के विभागाध्यक्ष प्रो. कल्लोल घोष ने सम्मेलन के उद्देश्य तथा इसमें होने वाले वैचारिक, आदान-प्रदान के लाभ के बारे में बताया।मुख्य वक्ता इंडियन कैमिकल सोसायटी के पूर्व अध्यक्ष प्रो. दुलाल चन्द्र मुखर्जी ने कोलाइब विज्ञान के इतिहास तथा प्रयोग के बारे में चर्चा किया।

50 शोध छात्रों ने पोस्टर प्रतियोगिता में भाग लिया

इसमें विशेष रूप से भारतीय विज्ञान संस्थान, बैंगलोर के वैज्ञानिक प्रो. पार्थ सारथि मुर्खजी विद्यासागर विश्वविद्यालय के प्रो. अमिय कुमार पाण्डा, दिल्ली विश्वविद्यालय के प्रो. पी. वेकेंटश, भाभा परमाणु केन्द्र, मुंबई के वैज्ञानिक डा. पीए हसन, भारतीय प्रोद्यौगिकी संस्थान के वैज्ञानिक प्रो. ताराशंकर पाल ने अलग-अलग विषयों पर व्याख्यान दिया। अन्त में लगभग 50 शोध छात्रों ने पोस्टर प्रतियोगिता में भाग लिया। तकनीकी सत्र के पश्चात रसायन अध्ययनशाला के छात्र-छात्राओं द्वारा रंगारंग सांस्कृतिक कार्यक्रमों की प्रस्तुति दी।

महाराजा अग्रसेन इंटरनेशनल कॉलेज में दो दिवसीय स्पोर्ट्स शुरू, टेनिस संघ के महासचिव गुरुचरण होरा ने किया उद्घाटन

रायपुर।  राजधानी के समता कॉलोनी में स्तिथ महाराजा अग्रसेन इंटरनेशनल कॉलेज में दो दिवसीय वार्षिक इनडोर और आउटडोर खेल प्रतियोगिता ‘मैक TOURNEY’ का आयोजन किया जा रहा है। इसकी शुरुआत छत्तीसगढ़ टेनिस एसोसिएशन के महासचिव गुरुचरण सिंह होरा ने मशाल जलाकर की। इसके बाद प्रतिभागियों ने मार्च पास्ट किया। इस दौरान सभी ने मुख्य अतिथि गुरुचरण सिंह होरा को सलामी दी। इस दौरान जुंबा का आयोजन भी किया गया। कॉलेज के संचालक राजेश अग्रवाल ने गुरुचरण सिंह होरा की उपलब्धियां गिनाते हुए कहा कि ब्रिक्स टूर्नामेंट में गुरुचरण सिंह होरा ने भारतीय टीम का मैनेजर बनकर पाँच खेलों में मेडल दिलवाया है, इसके साथ ही विष्व स्तरीय टेनिस स्टेडियम बनवाने में अहम भूमिका निभाई हैं। वे इस मौके पर उनका अभिनंदन करते है।

वहीं मुख्य अतिथि गुरुचरण सिंह होरा ने आयोजन की सराहना करते हुए, साउथ आफ्रिका के डरबन में ब्रिक्स गेम्स के अनुभव को सबके बीच शेयर किया, और गुरुनानक देव जी के जन्मदिन पर आज शहर में निकलने वाले नगर कीर्तन के बारे में बताते हुए मैक के इवेंट में मौजूद लोगो को आमंत्रित भी किया। इस मौके पर उन्होने बताया कि कॉलेज के संचालक राजेश अग्रवाल मेरे अच्छे मित्र है और वेल विशर है मुझे हर चीज़ के लिए प्रमोट करते है, और लाइफ में कुछ अचीव करना है तो ऐसे मित्र होना भी ज़रूरी है। आज होने वाले इस आयोजन के लिए राजेश अग्रवाल को होरा जी ने बधाई भी दी।

पीएमश्री के दूसरे चरण में सिर्फ 10 स्कूलों का चयन, यूडाइस कोड बना बाधा

रायपुर-   प्रधानमंत्री स्कूल फार राइजिंग इंडिया (पीएमश्री) योजना के तहत दूसरे चरण के लिए सिर्फ 10 स्कूलों का चयन किया गया है। समग्र शिक्षा विभाग की तरफ से स्कूलों का चयन कर मंजूरी के लिए केंद्र सरकार को भेजा दिया गया है। पीएमश्री योजना के तय मापदंड के अनुसार प्रदेश में सिर्फ 10 स्कूल ही मिले हैं।

पीएमश्री में शामिल करने के लिए पहली से 10वीं कक्षा अथवा 12वीं तक के स्कूलों को प्राथमिकता दी जा रही है। इन यूडाइस के स्कूल प्रदेश में कम हैं। जो हैं भी वे पहले से राज्य सरकार की तरफ से संचालित स्वामी आत्मानंद योजना में शामिल कर लिए गए हैं।

211 स्कूलों का चयन किया गया था

पीएमश्री योजना के तहत प्रथम चरण में प्रदेश के 211 स्कूलों का चयन किया गया था। इनमें सबसे ज्यादा 193 प्राइमरी स्कूल हैं। इन स्कूलों में शिक्षा सत्र 2023-24 से ही विद्यार्थियों को उत्कृष्ट सुविधाएं मिलेंगी। छत्तीसगढ़ सरकार ने अपने चुनिंदा 228 स्कूलों को पीएमश्री योजना में शामिल करने के लिए दावेदारी की थी, मगर इनमें 17 स्कूलों का प्रस्ताव खारिज कर दिया गया है। इन स्कूलों में प्रति कक्षा मानक के हिसाब से यदि 40 विद्यार्थियों को प्रवेश दिया जाता है तो करीब 50 हजार हजार विद्यार्थियों को दाखिला मिलेगा। यहां अध्ययन-अध्यापन की आधुनिक सुविधाएं उपलब्ध कराई जाएंगी।

पीएमश्री स्कूलों के विकास के लिए मिल चुकी है राशि

पीएमश्री स्कूलों के डेवलपमेंट के लिए केंद्र और राज्य सरकार की तरफ से राशि की प्रथम किस्त मिल चुकी है। प्रदेश में विधानसभा चुनाव के कारण आचार संहिता लगी हुई है। आचार संहिता हटने के बाद यानी तीन दिसंबर के बाद इन स्कूलों को प्रथम किस्त जारी की जाएगी। पीएमश्री योजना का मुख्य उद्देश्य भारत के पुराने स्कूलों को अपग्रेड करके स्मार्ट और आधुनिक स्कूल में बदलना है। इसी तरह पीएमश्री स्कूल को ग्रीन स्कूल के रूप में विकसित किया जाएगा। इसमें सौर पैनल और एलईडी लाइट, अपशिष्ट प्रबंधन, प्लास्टिक मुक्त, जल संरक्षण और संचयन पर्यावरण की सुरक्षा से संबंधित परंपराओं को शामिल किया जाएगा। इसके साथ ही यहां स्मार्ट क्लास, लैब, डिजिटल लाइब्रेरी और खेल सुविधाओं जैसे आधुनिक संसाधन भी होंगे।

यूडाइस कोड की दिक्कत

पीएमश्री योजना में स्कूलों का चयन यूनिफाइड डिस्ट्रिक्ट इन्फार्मेशन सिस्टम फार एजुकेशन प्लस (यूडाइस) कोड के हिसाब से होता है। हर स्कूल का एक यूडाइस कोड होता है। राज्य में पहली से पांचवीं, छठवीं से आठवीं और 9वीं से 12वीं कक्षा तक के स्कूलों का अलग-अलग यूडाइस कोड है। कक्षा एक से 12वीं और छठवीं से 12वीं यूडाइस के ज्यादा स्कूल नहीं होने के कारण पीएमश्री में चयनित नहीं हो पाए हैं। पीएमश्री योजना में शामिल सभी स्कूलों के नाम से पहले भी पीएमश्री लगेगा। कुछ स्कूलों में पीएमश्री लिखा जा चुका है। फिलहाल 2027 तक के लिए यह योजना लागू होगी। राज्य और केंद्र सरकार के सहयोग से स्कूलों को विकसित किया जा रहा है।

शिक्षकों का प्रशिक्षण शुरू

समग्र शिक्षा विभाग पीएमश्री स्कूलों के शिक्षकों का प्रशिक्षण शुरू कर दिया है। शिक्षकों को पीएमश्री के तहत होने वाले बदलावों के बारे में जानकारी दी जा रही है। शिक्षकों से स्कूलों में जरूरी मूलभूत आवश्यकताओं की जानकारी भी जुटाई जा रही है। प्रथम किस्त की राशि से होने वाले कार्यों के बारे में भी बताया जा रहा है।

पुलिस भर्ती परीक्षा- हाई कोर्ट ने निर्वाचन आयोग से कहा-जल्द लें निर्णय लें और जानकारी भी दें

बिलासपुर-   पुलिस भर्ती परीक्षा की एक अन्य अभ्यर्थी पुष्पा सिदार की याचिका सुनवाई के बाद हाई कोर्ट ने भारत निर्वाचन आयोग को नोटिस जारी कर अंतिम चयन सूची जारी करने के संबंध में राज्य शासन को दी जाने वाली सहमति पर जल्द निर्णय लें। साथ ही कोर्ट को भी इससे अवगत कराने कहा है। अगली सुनवाई के लिए हाई कोर्ट ने एक सप्ताह का समय तय किया है।

पुष्पा सिदार ने अपने अधिवक्ता सिद्धार्थ दुबे के माध्यम से हाई कोर्ट में याचिका दायर कर कहा है कि बीते सप्ताह हाई कोर्ट ने राज्य शासन को निर्वाचन आयोग से अंतिम चयन सूची जारी करने के संबंध में सहमति लेने की बात कही थी। हाई कोर्ट के निर्देश पर राज्य शासन ने राज्य निर्वाचन आयोग को पत्र लिखकर पुलिस भर्ती के लिए अंतिम चयन सूची जारी करने सहमति मांगी थी। राज्य शासन के पत्र को राज्य निर्वाचन आयोग ने भारत निर्वाचन आयोग के हवाले करते हुए मार्गदर्शन मांगा है। गुरुवार को याचिका की सुनवाई के दौरान राज्य निर्वाचन आयोग ने भारत निर्वाचन आयोग से मार्गदर्शन मांगने की जानकारी दी।

गृह विभाग, छत्तीसगढ़ सरकार ने सूबेदार, प्लाटून कमांडर, सब-इंस्पेक्टर (फिंगर प्रिंट), सब-इंस्पेक्टर (प्रश्नांकित दस्तावेज़), सब-इंस्पेक्टर (कंप्यूटर) और सब-इंस्पेक्टर (रेडियो) के अधिसूचना जारी की है। 655 पदों पर भर्ती के लिए अगस्त 2018 मे विज्ञापन जारी किया था। वर्ष 2021 में पदों में बढ़ोतरी करते हुए इसे 975 कर दिया गया। तीन स्तर पर भर्ती प्रक्रिया पूरी की गई। 17 अगस्त से आठ सितंबर तक विभाग ने साक्षात्कार की प्रक्रिया पूरी की गई। इसके बाद आजतलक अंतिम चयन सूची जारी नहीं की गई है।

उम्मीदवारों के शारीरिक मापदंड परीक्षा पुलिस ने ली थी। इसके बाद 70 हजार अभ्यर्थियों की सूची लिखित परीक्षा लेने के लिए व्यावसायिक परीक्षा मंडल के हवाले कर दिया था। प्रारंभिक परीक्षा में उत्तीर्ण होने वाले उम्मीदवारों के लिए मुख्य परीक्षा का आयोजन किया गया। इसमें उत्तीर्ण होने वाले उम्मीदवारों को साक्षात्कार के लिए आमंत्रित किया गया था। साक्षात्कार की प्रक्रिया भी पूरी कर ली गई है। अब अंतिम सूची जारी करना शेष है। पूरा मामला यहीं पर आकर अटक जाता है।

प्लाटून कमांडर के पद को लेकर आपत्ति

साक्षात्कार की प्रक्रिया के बीच एक दर्जन से अधिक अभ्यर्थियों ने हाई कोर्ट में याचिका दायर कर प्लाटून कमांडर के पद पर महिलाओं को शामिल करने पर आपत्ति दर्ज कराई और इस पर रोक की मांग की थी। याचिका में इस बात की आपत्ति की गई थी कि प्लाटून कमांडर के पद पर भर्ती के लिए महिलाओं को भी शारीरिक परीक्षा में चयन कर लिया है। मामले की सुनवाई के बाद कोर्ट ने अंतरिम राहत देने से इन्कार कर दिया था। हाई कोर्ट से राहत ना मिलने पर याचिकाकर्ताओं ने हाई कोर्ट के आदेश को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी थी। सुप्रीम कोर्ट ने हाई कोर्ट के फैसले को सही ठहराते हुए याचिका खारिज कर दी थी।

20 अभ्यर्थियों की याचिका पर कोर्ट ने दिया था निर्देश

रुपेश कुमार एवं अन्य 20 अभ्यर्थियों ने अपने अधिवक्ता के माध्यम से छत्तीसगढ़ हाई कोर्ट में याचिका दायर कर अंतिम चयन सूची जारी करने की गुहाई लगाई थी। मामले की सुनवाई जस्टिस अरविंद सिंह चंदेल के सिंगल बेंच में हुई। सुनवाई के दौरान राज्य शासन ने जानकारी दी कि छत्तीसगढ़ में विधानसभा चुनाव के लिए भारत निर्वाचन आयोग ने आदर्श आचार संहिता लागू कर दिया है।

इस पर कोर्ट ने शासन को निर्देशित किया था कि चुनाव आयोग से अनुमति लेकर अंतिम चयन सूची जारी किया जाए। कोर्ट के निर्देश पर राज्य शासन ने राज्य निर्वाचन आयोग को पत्र लिखकर अंतिम चयन सूची जारी करने की अनुमति मांगी थी।

सीएम ने ट्वीट कर जताई थी खुशी

हाई कोर्ट के निर्देश के बाद मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने अपने ट्वीटर हैंडल के जरिए पुलिस भर्ती परीक्षा के अंतिम चयन सूची जारी करने के संबंध में हाई कोर्ट के निर्देश को इंटरनेट मीडिया में साझा करते हुए खुशी जताई थी और अभ्यर्थियों को बधाई दी थी।

बीजेपी के “सरकार गठन के बाद झीरम की जांच होगी“ वाले बयान पर सीएम बघेल ने किया पलटवार, कहा – उस समय किसने रोका था

रायपुर-  बीजेपी के “सरकार गठन के बाद झीरम की जांच होगी“ वाले बयान पर सीएम भूपेश बघेल ने कटाक्ष करते हुए कहा कि उस समय किसने रोका था उन्हें, धरमलाल कौशिक को कोड किसने भेजा था, अडंगा डालने का काम किसने किया था ? अब किसी भी प्रकार की बात करने में कोई संकोच नहीं है, शर्म भी नहीं आती, उनकी सरकार थी, सीबीआई जांच हो यह विधानसभा में पारित किया था। भारत सरकार से जब आदेश आया तब उसे दबाकर क्यों रखा था।

रमन सिंह जी पता नहीं किस प्रकार के बयान लिखते और जारी करते है, क्योंकि सभी घटनाओं के लिए वही जिम्मेदार है। छत्तीसगढ़ की पुलिस जांच करेगी अब वह बोले या नहीं बोले जांच होगी।

सुप्रीम कोर्ट का फैसला आने पर सीएम ने कहा था –

झीरम घाटी जांच को लेकर एनआईए की याचिका खारिज करने के सुप्रीम कोर्ट के फैसले पर छत्तीसगढ़ के सीएम भूपेश बघेल ने कहा, “मैं सुप्रीम कोर्ट के फैसले का स्वागत करता हूं कि उन्होंने एनआईए की याचिका खारिज कर दी, 2016 में बीजेपी सत्ता में थी और उन्होंने विधानसभा में घोषणा की कि सीबीआई जांच होगी लेकिन केंद्र सरकार ने इसे रोक दिया, जब हम सत्ता में आये तो हमने सबूतों के आधार पर एसआईटी का गठन किया, एनआईए अदालत के माध्यम से बाधा डालती रही, आखिरकार, सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि छत्तीसगढ़ पुलिस इसकी जांच करेगी, राजनीतिक साजिश आज रची गई है, हमारे पास सबूत हैं और वे फिर सामने आएंगे। “

सुबह आठ बजे डाक मतपत्रों से शुरू होगी गिनती, एक हजार जवान रहेंगे तैनात

रायपुर-  मतगणना को सिर्फ 10 दिन शेष रह गए हैं। तीन दिसंबर को सुबह आठ बजे डाक मतपत्र की गिनती शुरू होगी। वहीं आब्जर्वर की घोषणा के बाद साढ़े आठ बजे से ईवीएम के मतों की गिनती की जाएगी। इसके साथ ही डाकमत पत्रों की गिनती निरंतर जारी रहेगी। इसके लिए अधिकारियों की ड्यूटी तय कर दी गई है।

वहीं हजार से ज्यादा जवान भी इस दौरान सेजबहार इंजीनियरिंग कालेज में तैनात रहेंगे। शासकीय इंजीनियरिंग कालेज में इसके लिए तैयारियां भी शुरू हो गई हैं। इसके लिए 14 टेबल ईवीएम के लिए और दो टेबल पोस्टल बैलेट के लिए लगाएं जाएंगे। 16 टेबल में 48 अधिकारी-कर्मचारी गिनती में लगे रहेंगे। सात विधानसभा सात कमरों में 336 कुल लोगों को गिनती के लिए तैनात किया गया है।

तीन दिसंबर को यह स्पष्ट हो जाएगा कि प्रदेश में किसकी सरकार बनेगी और कौन विपक्ष की भूमिका निभाएगा। इसके लिए निर्वाचन आयोग प्रदेशभर में मतगणना की तैयारी कर रहा है। एक तरफ ईवीएम जहां चाकचौबंद सुरक्षा के बीच स्ट्रांग रूम में कैद है, वहीं निर्वाचन आयोग और प्रशासनिक अमला मतगणना की अंतिम तैयारी में जुटा हुआ है। कलेक्टर डा. सर्वेश्वर नरेंद्र भुरे ने बुधवार को मतगणना की तैयारियों के परिप्रेक्ष्य में कलेक्टर सभाकक्ष में बैठ ली और मतगणना की वीडियोग्राफी भी करवाने के निर्देश दिए हैं।

तीन बार किया जाएगा रेंडमाइजेशन

विधानसभा में 14 टेबल ईवीएम के लिए और दो टेबल पोस्टल बैलेट के लिए लगाएं जाएंगे। प्रत्येक टेबल पर एक सुपरवाइजर, जो राजपत्रित अधिकारी रैंक का होगा, साथ ही गणना सहायक भी होंगे। मतगणना दल की नियुक्ति तीन बार रैंडमाइजेशन के बाद की जाएगी। पहला रैंडमाइजेशन जिला निर्वाचन अधिकारी की उपस्थिति में तथा दूसरा और तीसरा रेंडमाइजेशन आब्जर्वर की मौजूदगी में किया जाएगा।

1,000 से ज्यादा सुरक्षा बल होंगे तैनात

जिले के मतगणना के लिए सेजबहार में बनाए गए स्ट्रांग रूम और मतगणना स्थल पर कड़ी सुरक्षा व्यवस्था की जा रही है। तीन श्रेणियों की सुरक्षा व्यवस्था के अंदर मतगणना होगी, जिसमें जिला पुलिस बल के अलावा केंद्रीय सुरक्षा बलों की भी तैनाती होगी। तकरीबन 1,000 से ज्यादा की संख्या में सुरक्षा बल के जवानों की तैनाती मतगणना स्थल पर होगी।

मोबाइल और वीआइपी एंट्री प्रतिबंधित

इधर मतगणना स्थल पर तमाम अधिकारी कर्मचारियों को मोबाइल ले जाने पर प्रतिबंध लगाया गया है। सभी अधिकारी कर्मचारी बगैर मोबाइल के ही मतगणना स्थल पर पहुंचेंगे। वहीं मतगणना स्थल पर केंद्रीय मंत्री, सांसद, विधायक और मंत्रियों के प्रवेश पर भी रोक लगाई गई है। ऐसे मंत्री जो वर्तमान में प्रत्याशी हैं, वे केवल उन्हीं मतगणना स्थल पर प्रवेश कर पाएंगे, जहां वे चुनाव लड़ रहे हैं। उन्हें भी बगैर गनमैन के ही मतगणना स्थल में एंट्री दी जाएगी।