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कांग्रेस अध्यक्ष बैज ने फिर से कांग्रेस सरकार बनने का किया दावा, कहा-

रायपुर-   विधानसभा चुनाव के बाद मिल रहे रुझानों पर दावा करते हुए कांग्रेस ने कहा है कि छत्तीसगढ़ में दोबारा कांग्रेस की सरकार बनेगी। मतदाताओं ने कांग्रेस के घोषणा-पत्र पर भरोसा जताया है। भाजपा के घोषणा-पत्र को जनता ने नकार दिया है।

प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष एवं सांसद दीपक बैज ने कहा कि कांग्रेस के घोषणा पत्र पर प्रदेश के हर वर्ग ने भरोसा किया है। 2018 में भाजपा सरकार की बिदाई के साथ शुरू हुई नवा छत्तीसगढ़ गढ़ने की कांग्रेस की विकास यात्रा निर्बाध गति से आगे बढ़ेगी। प्रदेश की जनता ने मोदी की गारंटी और भाजपा के घोषणा पत्र से किनारा कर लिया, भरोसा नहीं किया।

उन्होंने कहा कि माता-बहनों ने कांग्रेस सरकार बनने पर छत्तीसगढ़ गृह लक्ष्मी योजना के माध्यम से मिलने वाले हर साल 15,000 रुपये की राशि, 500 रुपये की रसोई गैस सिलिंडर में सब्सिडी, महिला समूह की कर्ज माफी जैसे विषयों पर भरोसा किया और बढ़-चढ़ कर कांग्रेस के पक्ष में मतदान किया। कांग्रेस की सरकार बनने पर जातिगत जनगणना होगी। किसानों की कर्ज माफी होगा। धान की कीमत 3,200 रुपये प्रति क्विंटल मिलेगी।

भाजपा को भाजपा का ही समर्थन नहीं

कांग्रेस प्रदेशाध्यक्ष ने कहा कि भाजपा के प्रत्याशियों को भाजपा के नेताओं और कार्यकर्ताओं का ही समर्थन नहीं मिला। जनता तो पहले ही भाजपा से दूर थी। भाजपा जो आयातित नेताओं के दम पर प्रदेश में चुनाव लड़ रही थी। मतदान खत्म होने के बाद आयातित नेता झोला उठाकर चले गए। भाजपा कार्यालय में सन्नाटा पसर गया। प्रदेश के भाजपा के नेता पहले ही अपनी हार स्वीकार कर चुके थे। प्रदेश के भाजपा, आरएसएस के कार्यकर्ता भी मुख्यमंत्री भूपेश बघेल सरकार के कामों पर भरोसा कर रहे हैं। कांग्रेस के घोषणा पत्र से भाजपा से जुड़े किसान और युवा भी प्रभावित हैं और उन्होंने कांग्रेस पर भरोसा किया है।

भाजपा ने चुनाव में किया अफवाह फैलाने का काम

बैज ने कहा कि भाजपा ने पूरे चुनाव के दौरान अफवाह फैलाने का काम किया है। झूठ बोलकर राजनीति की है और जनता भाजपा के झूठ को दरकिनार कर प्रदेश को ऊंचाई में ले जाने वाली कांग्रेस सरकार पर भरोसा किया। सरकार के कामों पर भरोसा किया। तीन दिसंबर को फिर से कांग्रेस की सरकार बनेगी और जनता से किए गए सभी वादों को पूरा करेगी।

भारत-आस्ट्रेलिया टी-20 मुकाबले की तैयारी शुरू, पार्किंग और ठहरने का रूट चार्ट हो रहा तैयार

रायपुर-   नवा रायपुर स्थित शहीद वीर नारायण सिंह अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट स्टेडियम में भारत-आस्ट्रेलिया की बीच टी-20 मैच खेला जाएगा। इसकी तैयारी भी शुरू कर दी गई। छत्तीसगढ़ क्रिकेट संघ के पदाधिकारियों ने प्रशासन से मुलाकात कर मैच के संबंध में जानकारी दी है। प्रशासन ने तैयारी शुरू कर दी है।

मंगलवार को एसएसपी प्रशांत अग्रवाल ने सभी थाना प्रभारियों की बैठक ली। उनसे आगामी मतगणना और एक दिसंबर को प्रस्तावित टी-20 मैच की तैयारी को लेकर चर्चा की। तैयारी करने कहा गया है। जानकारी के अनुसार सात सौ से ज्यादा जवानों की तैनाती रहेगी। दूसरे जिले से अधिकारी बनाए जाएंगे। स्टेडियम की सुरक्षा और खिलाडि़यों की सुरक्षा के लिए अलग-अलग बल की तैनाती रहेगी।

होटल से लेकर स्टेडियम तक कड़ी सुरक्षा

दोनों देशों के खिलाड़ियों को नवा रायपुर के किसी होटल में ठहराया जा सकता है। होटल से लेकर क्रिकेट स्टेडियम तक सुरक्षा की कड़ी व्यवस्था होगी। इसके अलावा क्रिकेट स्टेडियम के आस-पास भी बल तैनात किया जाएगा। एसएसपी प्रशांत अग्रवाल ने मंगलवार को इस संबंध में पुलिस अफसरों की बैठक ली। इस दौरान सुरक्षा व्यवस्था को लेकर चर्चा हुई। कुछ अधिकारियों की जिम्मेदारी भी तय की गई है।

अपराध रोकने राजधानी में चलेगा अभियान, एसएसपी ने ली थाना प्रभारियों की बैठक, गश्त बढ़ाने के दिए निर्देश

रायपुर-  ठंड के आते ही चोरी की घटनाएं बढ़ गई हैं। चोरी व लूट की घटनाओं की आशंका को देखते सभी थाना प्रभारी अपने-अपने क्षेत्र में रात्रि गश्त बढ़ाएं। साथ ही लंबित जांच और विवेचनाओं को गुणवत्ता के साथ जल्द से जल्द पूरा करें। ये बातें एसएसपी प्रशांत अग्रवाल ने मंगलवार को सी-4 बिल्डिंग में आयोजित अपराध समीक्षा में अधीनस्थों से कही। वहीं शादी के सीजन में पुलिस को अलर्ट रहने को कहा गया। साथ ही तीन दिसंबर को मतगणना पर क्षेत्र में अलर्ट रहने के लिए कहा गया है।

एसएसपी ने सभी एएसपी, सीएसपी और थाना प्रभारियों के साथ बैठक कर अपराध समीक्षा की। बैठक में एसएसपी ने लंबित विवेचनाओं एवं शिकायतों को त्वरित निस्तारित करने के निर्देश दिए। इसके अलावा गुमशुदा व्यक्ति, बालक, बालिका की तलाश व बरामदगी करने एवं प्राप्त साक्ष्य के अनुसार कार्रवाई कराने को कहा। एसएसपी ने कहा कि महिला संबंधी अपराधों में किसी भी प्रकार की लापरवाही न हो। ऐसे मामलों में तत्काल कार्रवाई की जाए। गुंडा बदमाश, जुआ, शराब, नशे के सामान की तस्करी, आर्म्स एक्ट जैसे मामलों में अभियान चलाकर कार्रवाई का निर्देश थाना प्रभारियों को दिया गया।

एक सप्ताह के भीतर छह हत्या

राजधानी रायपुर में एक सप्ताह के भीतर यह छह हत्या की वारदात हुई है। मंगलवार को टिकरापारा थाना क्षेत्र में युवक की पीट-पीटकर हत्या कर दी गई। इससे पहले सिविल लाइन थाना क्षेत्र में पुराने गाली-गलौज चलते तीन नाबालिगों ने युवक की चाकू से गोदकर हत्या कर दी थी। पुलिस ने तीनों को गिरफ्तार कर लिया। दूसरा मामला राजेंद्र नगर थाना क्षेत्र का है जहां जुआ खेलने के दौरान वहां पहुंचे युवक की राड, डंडे और पत्थर से पटकर हत्या कर दी गई। इसी तरह कबीर नगर थाना क्षेत्र में दीवाली त्योहार के दिन दीपक जलाने के दौरान पड़ोसी द्वारा गाली-गलौज करने के विवाद पर हत्या की वारदात को अंजाम दिया गया। पुरानी बस्ती थाना क्षेत्र के कुशालपुर इलाके में बदमाशों ने पुराने विवाद पर युवक हत्या की गई। वहीं धरसींवा में छह युवकों ने एक वर्ष पुराने विवाद पर युवक की हत्या कर दी।

सरकारी कर्मचारियों के लिए बड़ी खबर, निर्वाचन आयोग ने महंगाई भत्ते बढ़ाने की दी स्वीकृति

रायपुर-  छत्तीसगढ़ के कर्मचारियों के लिए अच्छी खबर है। निर्वाचन आयोग ने डीए बढ़ाने की स्वीकृति दे दी है।

4 प्रतिशत बढ़ोतरी की स्वीकृति के बाद अब कर्मचारियों को बढ़ा हुआ डीए मिलेगा। राज्य सरकार जल्द ही इस बाबत आदेश जारी करेगी। बता दें कि छत्तीसगढ़ में अभी 42 प्रतिशत डीए मिल रहा है।

जबकि, केंद्र सरकार में 46 प्रतिशत। बढ़ोतरी के बाद अब छत्तीसगढ़ में भी DA-42 प्रतिशत से बढ़कर 46 प्रतिशत हो जायेगा।

ओखा-शालीमार एक्सप्रेस में छापा, पेंट्रीकार में मिले चार गैस सिलेंडर, मैनेजर पर मामला दर्ज

रायपुर-  अग्नि सुरक्षा जागरूकता अभियान के तहत ट्रेनों के पेंट्रीकार में जांच जारी है। मंगलवार को रेलवे वाणिज्य विभाग की टीम ने ओखा-शालीमार एक्सप्रेस में दबिश देकर पेंट्रीकार का जायजा लिया। इस दौरान चार गैस सिलिंडर व चार चूल्हा जब्त किए गए। इस मामले में पेंट्रीकार मैनेजर के खिलाफ अपराध दर्ज कर लिया गया है।

ट्रेनों की पेंट्रीकार में खाना पकाना प्रतिबंधित है। इसलिए संचालक इसमें गैस सिलिंडर, चूल्हा य अन्य कोई ज्वलनशील वस्तु नहीं रख सकता। यह नियमों का उल्लंघन है। हालांकि प्रतिबंध के बाद भी आदेश का पालन नहीं हो रहा है और पेंट्रीकार में चोरी-छिपे गैस सिलिंडर का इस्तेमाल किया जा रहा है। यह ट्रेनों में आग लगने की सबसे बड़ी वजह है। आग लगने की यह घटना मानव जीवन एवं रेल संपदा के लिए सबसे गंभीर क्षति में एक है।

बता दें कि यात्रियों को ट्रेनों में यात्रा के दौरान अग्नि सुरक्षा के महत्व से अवगत कराने के लिए जागरूकता अभियान चलाया जा रहा है। साथ ही लोगों से ज्वलनशील वस्तुएं लेकर सफर नहीं करने की अपील की जा रही है। इस अभियान के तहत वाणिज्य विभाग पेंट्रीकार की जांच कर रहा है। इसी के तहत वाणिज्य विभाग की टीम ने 22905 ओखा-शालीमार एक्सप्रेस में जांच की। पेंट्रीकार के पैनल के अंदर में चार सिलिंडर के अलावा चार गैस चूल्हे जब्त किए।

बस्तर से सरगुजा तक के नेताओं का रायपुर में डेरा, चुनाव परिणाम के पहले ही पदों के लिए कर रहे लाबिंग

रायपुर-    2018 के विधानसभा चुनाव में कांग्रेस को मिले भारी बहुमत ने विजयी हुए बहुत से कांग्रेस के विधायकों की महत्वाकांक्षाओं को अधूरा कर दिया था। मुख्यमंत्री का एक ही पद है, मंत्रियों की संख्या भी सीमित (कुल 12 पद) है। इसलिए कई वरिष्ठ विधायकों तक के नाम के आगे 'मंत्री' नहीं लग पाया था।

पिछली बार से शिक्षा लेते हुए इस बार कई विधायक प्रत्याशी अभी से लाबिंग करने में जुट गए हैं। रायपुर में पार्टी नेताओं के बंगलों पर कई प्रत्याशियों ने डेरा जमा लिया है। दिल्ली में पार्टी हाईकमान के पास उठने-बैठने वाले नेताओं से नियमित संवाद कर अपने मंत्री बनने के लिए जुगाड़ करने का प्रयास किया जा रहा है।

कहा जा रहा है कि वरिष्ठ प्रत्याशियों के साथ, दूसरी बार चुनाव जीतने की आशा लेकर बैठे प्रत्याशी मंत्री पद से नीचे समझौता ही नहीं करना चाह रहे हैं। सबसे अधिक लाबिंग यही प्रत्याशी कर रहे हैं। कांग्रेस के साथ ही भाजपा प्रत्याशियों की भी यही दशा है। वहां भी जीत से पहले मंत्री पद का जुगाड़ करने वाले प्रत्याशियों की भीड़ है।

पहले बात टिकट का था। किसी तरह टिकट मिला तो प्रत्याशी प्रचार में भिड़ गया। अब मतदान हो चुका है। तीन दिसंबर को यह तय हो पाएगा कि किसके सपनों को उड़ान मिलती है, लेकिन बात अब विधायक पद से आगे बढ़ती जा रही है। भाजपा-कांग्रेस के विधायक प्रत्याशी मंत्री बनने के लिए अभी से अपना पूरा जोर लगा रहे हैं।

माना यही जा रहा है कि यदि पिछली बार की तरह किसी दल को एकतरफा सीटें न मिलें तो ही कई वरिष्ठों को मंत्री पद का सुख मिल पाएगा। विशेष रूप से कांग्रेस के विधायक प्रत्याशी इस गुणा-भाग में जुटे हैं कि अभी से मंत्री पद के लिए वरिष्ठ नेताओं की सहमति ले ली जाए। परिणाम आ गया तब विधायकों को बहुत सारे समीकरणों के आधार पर मंत्री बनाया जाएगा। तब नंबर लगे या न लगे, इसलिए अभी से प्रयास शुरू कर दिया गया है।

दिग्गजों के घर पर रात तक बैठक

राजधानी में राजनीतिक के दिग्गजों के बंगले में रात तक बैठक चल रही है। कभी रात्रि भोज के बहाने तो कभी अनौपचारिक मुद्दे को लेकर पार्टी के प्रमुखों से प्रत्याशी मुलाकात कर रहे हैं। कुछ प्रत्याशियों ने बंगले में ही शक्ति प्रदर्शन कर दिया। वे अपने आपको बड़े नेताओं का भी करीबी बता रहे हैं। साथ ही यह समीकरण समझाने की कोशिश कर रहे हैं कि चुनाव जीतने के बाद वे पार्टी को कितना बड़ा फायदा पहुंचा सकते हैं। कुछ बागियों का उदाहरण भी इन बैठकों में प्रस्तुत किया जा रहा है।

कांग्रेस की समीक्षा बैठक में रायशुमारी, सरकार बनाने का दावा

कांग्रेस की समीक्षा बैठक में प्रत्याशियों से सीधे जीत-हार पर चर्चाएं जारी है। यहां प्रदेश प्रभारी कुमारी सैलजा प्रत्याशयों से बातचीत कर रही है। इसी बहाने प्रदेशभर के विभिन्न जिलों से आए नेता व प्रत्याशियों ने भी यहां बड़े नेताओं से मिलने का बहाना ढ़ूंढ़ लिया।

सूत्रों के अनुसार, कुमारी सैलजा ने बीते दिनों 90 प्रत्याशियों से वन-टू-वन चर्चा की है। इस चर्चा में सीटों का अंतर कम-ज्यादा हुआ है। फिर भी कांग्रेस ने दावा किया है कि सरकार दोबारा बनेगी।

भाजपा ने माना-बदलाव तय

इधर, प्रत्याशियों से अंदरुनी चर्चा के बाद भाजपा ने भी सरकार बनाने का दावा किया है। सीटों को लेकर पार्टी स्पष्ट रूप से कहने की स्थिति में नहीं है, लेकिन भाजपा प्रत्याशियों ने प्रदेश में बदलाव की संभावनाएं तलाशते हुए पार्टी के राष्ट्रीय व संगठन के नेताओं से नजदीकियां बढ़ा दी है। बीते दिनों बस्तर, दुर्ग, सरगुजा व रायपुर संभाग के प्रत्याशियों ने राजधानी में बड़े नेताओं से मुलाकात की थी। यहां चर्चा के दौरान भाजपा ने छत्तीसगढ़ में बदलाव की शत-प्रतिशत संभावना जताई है।

कांग्रेस-भाजपा दोनों पार्टियों के नेता सक्रिय

उप मुख्यमंत्री टीएस बाबा के बंगले में कई प्रत्याशियों का आना-जाना जारी है। कांग्रेस प्रदेशाध्यक्ष दीपक बैज स्वयं मंत्री पद की दौड़ में बताए जा रहे हैं। उनके आवास पर भी बस्तर क्षेत्र के प्रत्याशियों का तांता लगा है। इसके साथ ही प्रदेश प्रभारी कुमारी सैलजा से मिलने के लिए कार्यकर्ता कतार पर हैं। बस्तर से दंतेवाड़ा प्रत्याशी व स्व. महेंद्र कर्मा के पुत्र छविंद्र कर्मा सहित अन्य प्रत्याशी मोहन मरकाम, संतराम नेताम रायपुर आ चुके हैं। बिलासपुर संभाग से जशपुर कांग्रेस प्रत्याशी विनय कुमार भगत, पत्थलगांव से रामपुकार सिंह राजधानी में हैं।

वहीं, भाजपा प्रत्याशी रायमुनि भगत, विष्णुदेव साय, गोमती साय का रायपुर दौरा हो चुका है। भाजपा में ज्यादातर प्रत्याशी राष्ट्रीय उपाध्यक्ष डा. रमन सिंह व प्रदेशाध्यक्ष अरुण साव से संपर्क साधने में लगे हैं। कोंडागांव प्रत्याशी व पूर्व खेल मंत्री लता उसेंडी सहित नारायणपुर प्रत्याशी व पूर्व शिक्षा मंत्री केदार कश्यप, बीजापुर प्रत्याशी व पूर्व मंत्री महेशा गागड़ा लाबिंग में जुट चुके हैं।

कुरूद से भाजपा प्रत्याशी व पूर्व मंत्री अजय चंद्राकर राजधानी में डटे हुए हैं। धमतरी प्रत्याशी रंजना साहू सहित धमतरी से कांग्रेस प्रत्याशी ओंकार साहू, सिहावा से अंबिका मरकाम, कुरूद से तारिणी चंद्राकर का रायपुर दौरा हो चुका है। मतगणना के पहले दोनों पार्टियों के प्रमुख प्रत्याशियों की बड़ी बैठक रायपुर में होने वाली है। वरिष्ठ कांग्रेसी नेता स्व. मोतीलाल वोरा के पुत्र व दुर्ग से कांग्रेस प्रत्याशी अरुण वोरा का भी रायपुर का लगातार दौरा जारी है।

पुलिस की उदासीनता से हताश परिवार ने मीडिया से मांगी मदद

रायपुर-   बेमेतरा जिला के ग्राम देवरबीजा के सुनीत सोनी ने प्रेस क्लब में पत्रकार वार्ता कर बताया कि अनिल सोनी के द्वारा हमारी जमीन हड़पने की तमाम कोशिश को सभी स्तर में विफल करने के कारण वह हमारे परिवार को कारण अकारण परेशान, प्रताड़ित करने में तुला हुआ है

और शायद किसी भी हद तक जा सकता है जिससे घर परिवार के लोग मेरे साथ भयभीत है और पुलिस प्रशासन से सहयोग नही मिलने पर हम सब अधिक आशंकित है क्योंकि पुलिस में हमारे द्वारा शिकायत के बावजूद किसी प्रकार की कभी कार्रवाई नही होने से उसके हौसले बुलंद है

इस बात की जानकारी गांव समाज के लोगो से मुलाकात बातचीत से पता चलता है और पिछले कुछ समय में हुए तमाम घटनाक्रम से हमारे आशंका को भी बल मिलता है जिससे हम सब अधिक भयभीत है इसलिए आपके माध्यम से शासन प्रशासन तक अपनी बात पहुचाने का प्रयास है जिससे शासन प्रशासन के दखल से हमें न्याय मिल सके और हमारा परिवार भय के साये से मुक्त रह सके क्योंकि हम सब बहुत परेशान और प्रताड़ित है ।

सुनीत ने बताया कि बेमेतरा में हमारे परिवार की आबादी जमीन जो विद्या बाई सोनी के नाम पर है, खसरा नम्बर 987 का टुकड़ा खसरा 460/ 3 जिसका रकबा 2.5 डिसमिल है।जिसमें सन 1962 से स्व. कृष्ण कुमार सोनी के परिवार का कब्जा रहा है और जिसका अधिकार पत्र हमारे पास है उसे हमारे सोनी परिवार के मेरे रिश्ते में भाई, बड़े पिता जी की संतान अनिल कुमार सोनी, जो व्याख्याता है तथा बेमेतरा में ही पदस्थ है उनके द्वारा अपनी पहुंच और राजनीतिक रसूख का दुरुपयोग कर हमारे जमीन को हड़पने का प्रयास जा रहा है।

जबकि हमारे पक्ष में तहसीलदार एवं कोर्ट का आदेश भी है इसके बावजूद राजनीतिक पहुंच एवं सरकारी संरक्षण में हमारे स्वामित्व की जमीन पर कुछ समय पहले मंदिर बनाने के नाम से भूमिपूजन कर निर्माण कार्य भी प्रारंभ किया गया था। जिसे बहुत ही मुश्किल से पुरजोर विरोध कर हमारे द्वारा रोकवाया गया था और पुलिस में शिकायत भी किया गया था पर पुलिस चौकी प्रभारी द्वारा जमीन संबंधी प्रकरण में पुलिस का हस्तक्षेप नही होता बताया गया जबकि पुलिस वाले हमारे जमीन पर हमारे द्वारा लगाए गए टीन शेड आदि को उखाड़ने और थाने के पास ही मैदान में रखने/ रखवाने वालो के खिलाफ अभी तक कोई कार्रवाई नही किये।

जिसके लिए पुलिस विभाग के आला अधिकारियों से भी कई बार आवेदन/ फरियाद किया गया जिसपर कोई सुनवाई भी नही होती, और किसी प्रकार की कोई कार्रवाई तो दूर की बात है उलट हमसे एसपी साहब दुर्व्यवहार करते है की बार बार शिकायत लेकर आते हो, जबकि हमारे द्वारा अनेकों बार प्रमाण सहित शिकायत पर कोई भी कार्रवाई ही नही कि जाती जिससे पुलिस की मिलीभगत की आशंका प्रबल होती है।

सुनीत ने कहा कि बीते दिनों स्थानीय विधायक एवं विस चुनाव प्रत्याशी के चुनाव प्रचार के दौरान किये गए ट्वीट में भी अनिल सोनी साथ थे (तस्वीर संलग्न) जिससे विधायक से करीबी संबन्ध भी स्पष्ट प्रतीत होता जो हमारे जमीन में मन्दिर निर्माण के लिए भूमिपूजन में भी शामिल हुए थे। सुनीत ने पत्रकार वार्ता में पत्रकारों से अपने पक्ष के अनेक दस्तावेजो को भी साझा किया जो उनके पक्ष में है।

पुलिस की उदासीनता से हताश परिवार ने मीडिया से मांगी मदद

रायपुर- बेमेतरा जिला के ग्राम देवरबीजा के सुनीत सोनी ने प्रेस क्लब में पत्रकार वार्ता कर बताया कि अनिल सोनी के द्वारा हमारी जमीन हड़पने की तमाम कोशिश को सभी स्तर में विफल करने के कारण वह हमारे परिवार को कारण अकारण परेशान, प्रताड़ित करने में तुला हुआ है और शायद किसी भी हद तक जा सकता है जिससे घर परिवार के लोग मेरे साथ भयभीत है और पुलिस प्रशासन से सहयोग नही मिलने पर हम सब अधिक आशंकित है क्योंकि पुलिस में हमारे द्वारा शिकायत के बावजूद किसी प्रकार की कभी कार्रवाई नही होने से उसके हौसले बुलंद है इस बात की जानकारी गांव समाज के लोगो से मुलाकात बातचीत से पता चलता है और पिछले कुछ समय में हुए तमाम घटनाक्रम से हमारे आशंका को भी बल मिलता है जिससे हम सब अधिक भयभीत है इसलिए आपके माध्यम से शासन प्रशासन तक अपनी बात पहुचाने का प्रयास है जिससे शासन प्रशासन के दखल से हमें न्याय मिल सके और हमारा परिवार भय के साये से मुक्त रह सके क्योंकि हम सब बहुत परेशान और प्रताड़ित है ।

सुनीत ने बताया कि बेमेतरा में हमारे परिवार की आबादी जमीन जो विद्या बाई सोनी के नाम पर है, खसरा नम्बर 987 का टुकड़ा खसरा 460/ 3 जिसका रकबा 2.5 डिसमिल है।जिसमें सन 1962 से स्व. कृष्ण कुमार सोनी के परिवार का कब्जा रहा है और जिसका अधिकार पत्र हमारे पास है उसे हमारे सोनी परिवार के मेरे रिश्ते में भाई, बड़े पिता जी की संतान अनिल कुमार सोनी, जो व्याख्याता है तथा बेमेतरा में ही पदस्थ है उनके द्वारा अपनी पहुंच और राजनीतिक रसूख का दुरुपयोग कर हमारे जमीन को हड़पने का प्रयास जा रहा है। जबकि हमारे पक्ष में तहसीलदार एवं कोर्ट का आदेश भी है इसके बावजूद राजनीतिक पहुंच एवं सरकारी संरक्षण में हमारे स्वामित्व की जमीन पर कुछ समय पहले मंदिर बनाने के नाम से भूमिपूजन कर निर्माण कार्य भी प्रारंभ किया गया था। जिसे बहुत ही मुश्किल से पुरजोर विरोध कर हमारे द्वारा रोकवाया गया था और पुलिस में शिकायत भी किया गया था पर पुलिस चौकी प्रभारी द्वारा जमीन संबंधी प्रकरण में पुलिस का हस्तक्षेप नही होता बताया गया जबकि पुलिस वाले हमारे जमीन पर हमारे द्वारा लगाए गए टीन शेड आदि को उखाड़ने और थाने के पास ही मैदान में रखने/ रखवाने वालो के खिलाफ अभी तक कोई कार्रवाई नही किये। जिसके लिए पुलिस विभाग के आला अधिकारियों से भी कई बार आवेदन/ फरियाद किया गया जिसपर कोई सुनवाई भी नही होती, और किसी प्रकार की कोई कार्रवाई तो दूर की बात है उलट हमसे एसपी साहब दुर्व्यवहार करते है की बार बार शिकायत लेकर आते हो, जबकि हमारे द्वारा अनेकों बार प्रमाण सहित शिकायत पर कोई भी कार्रवाई ही नही कि जाती जिससे पुलिस की मिलीभगत की आशंका प्रबल होती है।

सुनीत ने कहा कि बीते दिनों स्थानीय विधायक एवं विस चुनाव प्रत्याशी के चुनाव प्रचार के दौरान किये गए ट्वीट में भी अनिल सोनी साथ थे (तस्वीर संलग्न) जिससे विधायक से करीबी संबन्ध भी स्पष्ट प्रतीत होता जो हमारे जमीन में मन्दिर निर्माण के लिए भूमिपूजन में भी शामिल हुए थे। सुनीत ने पत्रकार वार्ता में पत्रकारों से अपने पक्ष के अनेक दस्तावेजो को भी साझा किया जो उनके पक्ष में है।

झीरम कांड पर सुप्रीम कोर्ट के फैसले को मुख्यमंत्री बघेल ने बताया न्याय का दरवाजा खुलने जैसा, कहा- अब छग पुलिस करेगी जांच…

रायपुर- झीरम कांड पर सुप्रीम कोर्ट के फैसले को मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने छत्तीसगढ़ के लिए न्याय का दरवाज़ा खोलने जैसा करार दिया है. उन्होंने ट्वीट कर कहा कि अब छत्तीसगढ़ पुलिस इसकी जांच करेगी. किसने, किसके साथ मिलकर क्या षडयंत्र रचा था, सब साफ़ हो जाएगा. झीरम के शहीदों को एक बार फिर श्रद्धांजलि.

एनआईए की अपील को सुप्रीम कोर्ट ने खारिज कर दिया है. इस फैसले के चंद घंटे बाद मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने ट्वीट कर कहा कि झीरम कांड दुनिया के लोकतंत्र का सबसे बड़ा राजनीतिक हत्याकांड था. इसमें हमने दिग्गज कांग्रेस नेताओं सहित 32 लोगों को खोया था.

उन्होंने कहा कि कहने को एनआईए ने इसकी जांच की, एक आयोग ने भी जांच की, लेकिन इसके पीछे के वृहत राजनीतिक षडयंत्र की जांच किसी ने नहीं की. छत्तीसगढ़ पुलिस ने जांच शुरु की तो एनआईए ने इसे रोकने के लिए अदालत का दरवाज़ा खटखटाया था. आज रास्ता साफ़ हो गया है.

मंत्रालय में पदस्थ अधिकारियों के कक्ष में बिछी चुनावी चौसर, आने वाली नई सरकार का इंतजार कर रहे अधिकारी

रायपुर- प्रदेश के प्रशासनिक अधिकारी नई सरकार की प्रतीक्षा कर रहे हैं। इसके साथ ही 2018 की तुलना में थोड़ा कम पड़े मतदान को लेकर गुणा-भाग किया जा रहा है। पत्रकारों से लेकर जिला कलेक्टरों से भी बात करके निष्कर्ष पर पहुंचने का प्रयास किया जा रहा है। दलों के घोषणा पत्रों का किसे, कितना लाभ मिल रहा है, अपने कक्ष में आने वाले हर व्यक्ति से इस विषय पर बात की जा रही है। कुल मिलाकर, जितनी अधीरता से राजनीतिक दल और मतदाता नई सरकार की प्रतीक्षा कर रहे हैं, प्रशासनिक अधिकारियों में भी वही अधीरता देखी जा रही है। मतदान के साथ ही इनकी चुनावी व्यस्तता फिलहाल न्यूनतम हो गई है। आचार संहिता के कारण शासन और मंत्रियों के साथ कोई बैठक नहीं हो रही है। इसलिए कार्यालय अवधि का बड़ा समय चुनावी गुणा-भाग में ही बीत रहा है। प्रदेश में नई सरकार के आने में अब केवल 13 दिन ही शेष हैं। तीन दिसंबर को दोपहर एक बजे तक यह लगभग स्पष्ट हो जाएगा कि प्रदेश में किस पार्टी की सरकार बन रही है। फिलहाल तबतक चर्चा के साथ केवल अनुमान ही लगाए जा सकते हैं।

ओपी चौधरी और टेकाम की सबसे ज्यादा चर्चा

मंत्रालय में सबसे अधिक आइएएस ओपी चौधरी और नीलकंठ टेकाम को लेकर चर्चा गर्म है। आइएएस अफसर राजनीति में उतरे हैं, तो अफसरों की यह जिज्ञासा स्वाभाविक है कि प्रशासन से निकलकर कोई राजनीति में कितना सफल हो सकता है। चौधरी भाजपा की टिकट पर रायगढ़ और नीलकंठ टेकाम भी भाजपा की टिकट पर केशकाल से चुनावी मैदान में हैं। अधिकांश अफसर इसी बात से चिंतित दिख रहे हैं कि कुछ दिनों में चुनाव है, अगर सत्ता में फेरबदल हुआ तो उनका क्या होगा। पांच साल से कांग्रेस की सरकार में जो सेटिंग जमी है वह तो खतरे में आ जाएगी। जिन्हें सरकार का ज्यादा करीबी माना जाता है वे ज्यादा चिंतित हैं। इसी तरह जो भाजपा के कार्यकाल में करीबी रहे हैं और सरकार में बैकफुट पर रहे हैं उन्हें भी चिंता है कि सरकार किसकी बनेगी?

त्रिशंकु विधानसभा बनी तो क्या होगा

चर्चा यह भी है कि अगर कांटे का मुकाबला हुआ और निर्दलीय व अन्य दलों के खाते में सीट गई तो त्रिशंकु विधानसभा हो सकती है। इस पर एकराय बनाना मुश्किल है। त्रिशंकु के अलावा बस्तर-सरगुजा को लेकर भी चर्चा हो रही है। बस्तर संभाग की 12 सीटों पर अभी कांग्रेस के विधायक हैं। इसी तरह सरगुजा की 14 सीटों पर कांग्रेस के विधायक काबिज हैं। बस्तर-सरगुजा में कांग्रेस-भाजपा के खाते में कितनी सीट जा रही है। इसे लेकर भी चर्चा तेज हो चुकी है।

छत्तीसगढ़ की राजनीति अफसरों की धमक

चुनाव अफसरों की चर्चा के बीच केंद्र बिंदु बनने का विषय इसलिए भी है क्योंकि पिछले कुछ वर्षों में राजनीति में अफसरों की धमक बढ़ती जा रही है। इस बार दो आइएएस चुनावी मैदान में हैं। कांग्रेस- भाजपा दोनों ही दलों में एक दर्जन से ज्यादा अधिकारी राजनीति में दायित्व संभाल रहे हैं। कई आइएएस, राज्य प्रशासनिक सेवा, पुलिस और शिक्षक चुनावी राजनीति में परचम लहरा चुके हैं। पिछले चुनाव में रिटायर आइएएस शिशुपाल सोरी कांग्रेस की टिकट पर कांकेर से विधायक चुने गए। वहीं, वीआरएस लेकर चुनाव मैदान में उतरे आइएएस ओपी चौधरी को खरसिया सीट पर हार का सामना करना पड़ा था इस बार रायगढ़ से चुनावी मैदान में हैं। पार्टियों के संगठन की जिम्मेदारी भी पूर्व प्रमुख सचिव रहे गणेश शंकर मिश्रा, सरजियस मिंज सहित अन्य अधिकारी संभाल रहे हैं।

प्रदेश की राजनीति में सबसे सफल ब्यूरोक्रेट के रूप में प्रथम मुख्यमंत्री अजीत जोगी ने पहचान बनाई। पिछले चुनाव में एसीएस रहे सरजियस मिंज ने कांग्रेस का दामन थामा था। उम्मीद थी कि उनको जशपुर या कुनकुरी से चुनाव लड़ाया जा सकता है। हालांकि उनकी टिकट पक्की नहीं हो पाई। मिंज के पहले रिटायर्ड आइएएस आरपीएस त्यागी, इस्तीफा देने वाले डीएसपी विभोर सिंह व निरीक्षक गिरिजा शंकर जौहर कांग्रेस में गए थे। विभोर को कांग्रेस ने कोटा से उम्मीदवार बनाया, लेकिन वह पूर्व मुख्यमंत्री अजीत जोगी की पत्नी रेणु जोगी से चुनाव हार गए। सेवानिवृत्त आइजी रविंद्र भेड़िया की पत्नी अनिला भेड़िया अभी डौंडीलोहारा से चुनावी मैदान में हैं। आइजी रहे आरसी पटेल भी रिटायर होने के बाद कांग्रेस खेमे में गए थे। वहीं, पूर्व डीजी राजीव श्रीवास्तव ने पिछले लोकसभा चुनाव के समय भाजपा में शामिल हुए थे, लेकिन चुनाव के बाद वह सामाजिक गतिविधियों में आगे बढ़ गए। सेवानिवृत्त आइपीएस अकबर राम कार्राम ने निर्दलीय ताल ठोकी थी, लेकिन वह सफल नहीं हो पाए। इस साल चुनाव से पहले पूर्व आइएएस अधिकारी जिनेविवा किंडो कांग्रेस पार्टी में शामिल हुई हैं।