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*मुख्यमंत्री का अधिकारियों को सख्त निर्देश, जल्द से जल्द हर खेत तक पहुंचाएं सिंचाई का पानी*

डेस्क : मुख्यमंत्री ने सोमवार को एक अणे मार्ग स्थित संकल्प में सात निश्चय-2 के तहत हर खेत तक सिंचाई का पानी योजना की समीक्षा की और कई निर्देश पदाधिकारियों को दिये।

मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने अधिकारियों को निर्देश दिया कि जितना जल्द हो सके हर खेत तक सिंचाई का पानी पहुंचा दें। इसको लेकर तेजी से काम करें, ताकि किसानों को सिंचाई के लिए पानी उपलब्ध रहे। उन्होंने दो टूक कहा कि हर हाल में वर्ष 2025 तक यह योजना पूरी हो जाये, इसे सुनिश्चाए कराएं।

उन्होंने कहा कि पिछली बैठकों में हर खेत तक सिंचाई निश्चय योजना के संबंध में एक-एक बात पर चर्चा हुई थी। अभियंताओं के साथ बैठक कर तेजी से काम को आगे बढायें। स्थल पर भी जाकर किये जा रहे कार्यों की अद्यतन स्थिति की समीक्षा करें।

सीएम ने कहा कि लोगों की सुविधाओं के लिये और उनके हित में हम निरंतर काम करते हैं। भू-जल स्तर को मेंटेन रखने और पर्यावरण संरक्षण को बढ़ावा देने के लिये भी कई कार्य किये गये हैं। जल के संरक्षण और हरियाली को बढ़ावा देने के लिये वर्ष 2019 में जल-जीवन-हरियाली अभियान की शुरुआत की गयी है। जल और हरियाली है, तभी जीवन सुरक्षित है।

कुछ लोग इतिहास को बदलना चाहते हैं, ऐसे लोगों से देश को बचाना है : नीतीश कुमार

डेस्क : मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने केन्द्र बीजेपी सरकार पर एकबार फिर बड़ा हमला बोला है। उन्होंने कहा है कि कुछ लोग इतिहास को बदलना चाहते हैं, ऐसे लोगों से देश को बचाना है। 

बीते रविवार को जदयू मुख्यालय में आयोजित पार्टी के प्रभारी पदाधिकारियों की दो दिवसीय संसद के समापन सत्र को संबोधित करते हुए मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा कि कुछ लोग इतिहास को बदलना चाहते है, ऐसे लोगों से देश को बचाना है। 

उन्होंने कहा कि इन लोगों ने हर चीज पर कब्जा कर लिया है। सब कुछ एकतरफा हो रहा है। ये लोग काम नहीं कर रहे, केवल प्रचार करते हैं। 

नीतीश कुमार ने कहा दि देश में नया कौन-सा काम हो रहा है? सच्चाई तो यह है कि इन लोगों (केन्द्र की भाजपा सरकार) ने 1998 से 2004 के बीच के काम को भी पूरा नहीं किया? हमलोगों ने बिहार के लिए विशेष राज्य का दर्जा मांगा, लेकिन नहीं मिला। गरीबी के बावजूद हमलोगों ने विकास का सारा काम किया। 

बिहार में धार्मिक उन्माद को हमलोगों ने न के बराबर कर दिया, लेकिन कुछ लोग अब फिर से उसे कराने की कोशिश में हैं। हमलोग जातीय गणना के पक्ष में हैं, लेकिन कुछ लोग चाहते हैं कि ये न हो। जब भी अच्छा काम करिएगा, कहीं न कहीं से आपको रोकने की कोशिश होगी।

बड़ी खबर : 12 जून को पटना मे होगी विपक्षी दलों की बैठक, ये दल हो सकते हैं शामिल

डेस्क : मुख्यमंत्री नीतीश कुमार आगामी लोकसभा चुनाव में बीजेपी को शिकस्त देकर सत्ता से बाहर करने के लिए विपक्षी दलों को एकजुट करने के प्रयास में जुटे है। इसे लेकर वे कई राज्यों का दौरा कर विपक्षी दलों के नेताओं से लगातार मुलाकात कर रहे है। वही अब विपक्षी पार्टियों के प्रस्तावित बैठक की तारीख तय हो गई है।  

  

देशभर के विपक्षी दलों की एकजुटता को लेकर प्रस्तावित बड़ी बैठक पटना में 12 जून को होगी। इस बात की जानकारी खुद सीएम नीतीश कुमार ने दी है। विपक्षी एकजुटता के सूत्रधार मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने रविवार शाम पार्टी कार्यकर्ताओं के बीच इस बैठक के 12 जून को होने की बात कही।

उन्होंने कहा कि इस महत्वपूर्ण बैठक में तकरीबन दो दर्जन पार्टियां वर्ष 2024 के लोकसभा चुनाव में भाजपा को परास्त करने के लिए साझा रणनीति बनायेंगी। इस महाजुटान में विपक्षी एकता के रोडमैप को ठोस आकार दिया जाएगा। 

नीतीश कुमार ने कहा कि हमलोगों ने जब महागठबंधन बनाया तो देश की बहुत सारी राजनीतिक पार्टियों ने बधाई दी। अब हमलोग विपक्षी एकता के काम को आगे बढ़ा रहे हैं। जल्द ही इसका सार्थक परिणाम निकलेगा। विपक्षी दलों की बैठक की तारीख भी तय कर दी गई है। 12 जून को पटना में यह बैठक होगी।

विपक्षी पार्टियों की एकजुटता के अभियान में जुटे मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने पिछले मंगलवार (23 मई) को कांग्रेस नेता राहुल गांधी और पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे से मुलाकात की थी। इसके बाद जदयू और कांग्रेस की ओर से साझा प्रेस कांफ्रेंस में अगले दो-तीन दिन में विपक्षी दलों की साझा बैठक के एलान की बात कही थी।

बीजद छोड़ सभी दल होंगे शामिल 

जानकारी के मुताबिक नीतीश कुमार अबतक जिन-जिन दलों के नेताओं से मिले हैं उनमें से बीजद को छोड़कर शेष सभी दलों के शीर्ष नेता 12 जून की बैठक में शिरकत करेंगे। सबकी सहमति के बाद ही बैठक की तारीख और जगह तय की गई है। तकरीबन एक माह पूर्व 24 अप्रैल को नीतीश कुमार ने पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी और लखनऊ जाकर यूपी के पूर्व सीएम तथा सपा प्रमुख अखिलेश यादव से मुलाकात की थी। उनके साथ डिप्टी सीएम तेजस्वी यादव भी थे। मुलाकात के दौरान ममता बनर्जी ने नीतीश कुमार से देशभर के विपक्षी दलों की एका को लेकर पटना में बैठक बुलाने का आग्रह किया था।

ये दल हो सकते हैं शामिल

विपक्षी दलों की संयुक्त बैठक में कांग्रेस नेता राहुल गांधी, पार्टी के अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे, पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी, दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल, झारखंड के सीएम हेमंत सोरेन, पूर्व केन्द्रीय मंत्री शरद पवार, महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे सहित कई अन्य दलों के शीर्ष नेताओं के शामिल होने के आसार हैं। जदयू, राजद, सीपीआई, सीपीएम, सीपीआई (माले), डीएमके आदि पार्टियों के भी प्रमुख नेता शामिल होंगे।

नये संसद भवन को लेकर सीएम नीतीश कुमार द्वारा दिए गए बयान पर उपेन्द्र कुशवाहा ने किया पलटवार, कही यह बात

डेस्क : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के हाथों देश के नए संसद भवन का उद्घाटन हो चुका है। अब देश को चलाने वाली नीतियां अंग्रेजों द्वारा बनाए गए पुराने भवन से नहीं बल्कि नए संसद भवन सेंट्रल विस्टा में बैठकर तय होंगी लेकिन, संसद भवन को लेकर सियासत खत्म नहीं हो रहा है। 

नीतीश कुमार की पार्टी जेडीयू समेत कांग्रेस, आरजेडी समेत 19 दलों ने संसद भवन के उद्घाटन समारोह से दूरी बनाई। वहीं सीएम नीतीश कुमार ने कहा है कि संसद का नया भवन बनाने की आवश्यकता नहीं थी। आजादी के समय जो भवन था, उसी को और विकसित करना चाहिए था। अलग से नया बनाने का कोई मतलब नहीं है। देश के पुराने इतिहास को बदला जा रहा है।

इधर राष्ट्रीय लोक जनता दल के सुप्रीमो और पूर्व केंद्रीय राज्य मंत्री उपेंद्र कुशवाहा ने नए संसद भवन पर चल रहे विवाद के बीच सीएम नीतीश कुमार के साथ-साथ आरजेडी, कांग्रेस और अन्य दलों को भी निशाने पर लिया है।

नीतीश कुमार पर करारा हमला बोलते हुए उपेंद्र कुशवाहा ने कहा है कि नीतीश कुमार के पास न कोई काम है और न कोंई मुद्दा। नीतीश समेत पूरे विपक्ष के पास देश के लिए कोई मुद्दा नहीं है तो संसद भवन का विरोध कर रहे हैं। देश के विकास की कोई चर्चा उनके पास नहीं है। बेवजह फिजूल की बातों में लोगों को उलझा रहे हैं ताकि सच्चाई उजागर ना हो जाए।

कुशवाहा ने नीतीश कुमार के विकास के विजन पर भी सवाल खड़ा किया। उन्होंने कहा कि नीतीश एक बार फिर बिहार को लालटेन युग में ले जाना चाहते हैं। इसीलिए उन्होंने लालटेन के युवराज तेजस्वी यादव को अपना उत्तराधिकारी घोषित कर दिया है। उन्होंने कहा कि नीतीश कुमार लवकुश जनाधार वाले नेता हैं। उन्हें अपना उत्तराधिकारी इसी समाज के किसी प्रबुद्ध व्यक्ति को चुनना चाहिए था, लेकिन जानबूझकर उन्होंने लालू यादव के बेटे तेजस्वी यादव को अपना उत्तराधिकारी बनाया।

नीतीश कुमार के करीबी होने के सवाल पर उपेंद्र कुशवाहा ने कहा कि मैंने अपने सिद्धांतों से कभी समझौता नहीं किया है और न कर सकता हूं। कुछ लोग नाराज हैं क्योंकि मैंने नीतीश कुमार से समझौता किया। मैं उसके लिए क्षमा प्रार्थी हूं। अब दोबारा ऐसी गलती नहीं होगी।

अब सरकारी विद्यालयों में छात्रों या शिक्षकों का अनुपस्थित रहना होगा मुश्किल, शिक्षा विभाग के ई-शिक्षा कोश पोर्टल द्वारा मुख्यालय से होगी निगरानी

डेस्क : अब सरकारी विद्यालयों में छात्रों या शिक्षकों का अनुपस्थित रहना मुश्किल होगा। कोई छात्र या शिक्षक गायब रहे तो वे तत्काल नजर में आ जाएंगे। शिक्षा विभाग ने इसके लिए ई-शिक्षा कोश पोर्टल विकसित किया है। इससे विद्यालयों में शिक्षक-छात्र दोनों की मौजूदगी की निगरानी हो सकेगी। 

यही नहीं, इस पोर्टल के माध्यम से विद्यालयों की ऑनलाइन मॉनिटरिंग की भी व्यवस्था होगी। फिलहाल पोर्टल का ट्रायल हो रहा है। इसके अंतिम परिणाम के बाद इसे प्रभावी तरीके से लागू किया जाएगा। शिक्षा विभाग के अनुसार इस वर्ष 2023-24 में यह सिस्टम काम करने लगेगा।

शिक्षा विभाग के अपर मुख्य सचिव दीपक कुमार सिंह ने कहा कि हम ई-शिक्षा कोश के माध्यम से सभी विद्यालयों की मॉनिटरिंग करेंगे। इसके तहत स्कूल में उपस्थित बच्चों व शिक्षकों की जानकारी भी मुख्यालय के पास होगी। यह स्कूलों के बेहतर संचालन में मददगार होगा।

इस समय सरकारी विद्यालयों की मॉनिटरिंग की कोई केन्द्रीकृत व्यवस्था नहीं है। इससे स्कूलों की मॉनिटरिंग नहीं हो पाती है। शिक्षकों के आने-जाने के साथ-साथ छात्र-छात्राओं के विद्यालय आने पर भी विद्यालय के प्रधानाध्यापक ही नजर रख पाते हैं। शिक्षा विभाग के अधिकारी समय-समय पर इसकी जांच करते हैं। लेकिन वह भी अधिक प्रभावी नहीं हो पाता है। इससे सिस्टम में चूक की संभावना बनी रहती है। यही नहीं, स्थानीय स्तर पर गड़बड़ी की भी शिकायतें आती हैं। प्रधानाध्यापक या शिक्षा विभाग के अधिकारियों के तटस्थ होने पर भी सवाल उठते हैं। ऐसे में ताजा पोर्टल मुख्यालय से ही शिक्षक व बच्चों पर नजर रखेगा। 

पोर्टल का प्रारंभिक ट्रायल सफल रहा है। लेकिन इसे तकनीकी रूप से पूरी तरह आजमाना है। अगले कुछ माह में इस पोर्टल से निगरानी शुरू हो जाएगी।

नए संसद भवन के उद्घाटन से पहले सीएम नीतीश ने साधा निशाना, कही यह बात

डेस्क : पीएम नरेंद्र मोदी रविवार दोपहर 12 बजे नए संसद भवन का उद्घाटन करेंगे। इस अवसर पर विभिन्न धर्मों के प्रमुख लोग भी मौजूद रहेंगे। इस बीच शनिवार को चेन्नई के धर्मपुरम से 21 अधीनम दिल्ली पहुंचे। अधीनम के महंत ने मंत्रोच्चारण के बीच सुनहरा राजदंड (सेंगोल) पीएम को सौंपा। 

इधर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने इस मामले पर निशाना साधा है। उन्होंने कहा है कि संसद का नया भवन बनाने की आवश्यकता नहीं थी। आजादी के समय जो भवन था, उसी को और विकसित करना चाहिए था। अलग से नया बनाने का कोई मतलब नहीं है। देश के पुराने इतिहास को बदला जा रहा है। मुख्यमंत्री शनिवार को पटना में प्रथम प्रधानमंत्री पंडित जवाहरलाल नेहरू की पुण्यतिथि पर उन्हें श्रद्धांजलि देने के बाद पत्रकारों के सवालों का जवाब दे रहे थे।

उन्होंने कहा कि देश के इतिहास को भुलाया नहीं जा सकता है। आज-कल जो शासन में हैं वे सारे इतिहास को बदल देंगे। आजादी की लड़ाई के इतिहास को भी बदल देंगे। रविवार को नए संसद भवन का उद्घाटन समारोह बेकार है, इसका कोई मतलब नहीं है। बाकी लोगों को भी हम कहेंगे कि इस बात को समझिए। देश में इतने दिनों से शासन चल रहा था, लेकिन इसकी जरूरत नहीं महसूस की गई थी। इनलोगों को पूरा इतिहास बदलना है, इसलिए सभी चीजों को बदल रहे हैं।

जदयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष ललन सिंह ने केन्द्र सरकार पर लगाया गंभीर आरोप, कहा-लोकतांत्रिक व्यवस्था को समाप्त करने में लगी है मोदी सरकार

डेस्क : जदयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष व सांसद ललन सिंह ने केन्द्र सरकार पर गंभीर आरोप लगाया है. उन्होंने आरोप लगाया है कि केंद्र की मोदी सरकार अपने अहंकार और तानाशाही में देश की पूरी लोकतांत्रिक व्यवस्था को समाप्त कर रही है. 

आज शुक्रवार को केंद्र सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि लोकतंत्र की हत्या हो रही है. देश की संस्थाओं को निष्पक्ष नहीं छोड़ा जा रहा है. देश में अघोषित तानाशाही है. यही वजह से देश के गौरवशाली इतिहास को खत्म कर मोदी इतिहास बनाया जा रहा है. 

उन्होंने नए संसद भवन के उद्घाटन का 19 विपक्षी दलों द्वारा बहिष्कार करने का समर्थन करने हुए कहा कि 28 मई को मात्र पूर्वोत्तर भारत के राज्यों से जुड़े हुए कुछ दल शामिल हो रहे हैं. ये ऐसे दल हैं जो एक से 2 सांसदों वाली पार्टियाँ हैं. जब भी केंद्र में सरकार बदलती है तो ऐसे दल भी बदल जाते हैं. इनके अलावा मुख्य विपक्षी दलों में अधिकांश ने उद्घाटन का बहिष्कार करने की घोषणा की है. उन्होंने कहा कि पुराने को खत्म कर नया संसद बनाने का कोई मतलब नहीं था. लेकिन, पुराने इतिहास को खत्म किया जा रहा है. 

पीएम मोदी पर सीधा निशाना साधते हुए ललन सिंह ने कहा कि हाल ही में 2000 रुपए का नोट बंद कर दिया गया. यह दिखाता है कि पीएम मोदी सिर्फ अपनी बातों को कानून मानते हैं. यह उनका मुखिर कानून होता है कि वे जो बोलें वही सही है. आज देश में स्थिति बना दी गई है कि जो मोदी बोल दें वही कानून है. 

बता दें ललन सिंह और जदयू की ओर से पहले भी 2000 का नोट बंद करने पर मोदी सरकार को घेरा गया था. तब जदयू ने कहा था कि 2016 में पीएम मोदी ने कहा था कि वे भ्रष्टाचार बंद करने के लिए 2000 का नोट लाये हैं. अब फिर से 2000 का नोट बंद करने पर भाजपा कह रही है कि भ्रष्टाचार बंद होगा. यह उनकी दोहरी सोच को दर्शाता है.

पटना के नेपाली नगरवासियों के लिए बड़ी खबर, पटना हाईकोर्ट ने अतिक्रमण के नाम जिला प्रशासन की ओर तोड़े गए मकान को लेकर दिया यह बड़ा आदेश

डेस्क : राजधानी पटना के नेपाली नगरवासियों के लिए एक बड़ी राहत की खबर है। पटना हाईकोर्ट ने गुरुवार को अपने फैसले में राजधानी पटना के राजीव नगर स्थित नेपाली नगर में अतिक्रमण हटाने के नाम पर बिहार राज्य आवास बोर्ड और जिला प्रशासन की ओर से की गई कार्रवाई को गैरकानूनी करार दिया। साथ ही तोड़े गये मकानों के लिए तत्काल पांच लाख मुआवजा देने का आदेश दिया। इसके अलावा जिनके मकान तोड़े गए हैं, उन्हें सिविल कोर्ट में अर्जी दायर कर क्षतिपूर्ति का दावा करने का भी आदेश सुनाया।

कोर्ट का कहना था कि एक ओर सरकार नेपाली नगर में सड़क, बिजली और पानी मुहैया करा रही है, वहीं इन्हें अतिक्रमणकारी बता घरों को तोड़ने की कार्रवाई कर रही है। दोनों चीजें साथ नहीं चलेंगी। संविधान के तहत सभी को शांति से रहने की आजादी है। 

कोर्ट ने नेपाली नगर के 4 सौ एकड़ अधिग्रहित जमीन पर हुए निर्माण के लिए उन अधिकारियों को चिह्नित करने को कहा, जिनकी मिलीभगत से यहां निर्माण हुआ है। मुख्य सचिव को 6 सप्ताह में जांचकर दोषी अधिकारियों पर की गई कार्रवाई की रिपोर्ट हाईकोर्ट को देने का आदेश दिया। 

कोर्ट का कहना था कि आखिर कैसे आवास बोर्ड की जमीन पर लोग घर बनाते गए और अधिकारी निर्माण कार्य पर रोक नहीं लगा सके। न्यायमूर्ति संदीप कुमार की एकलपीठ ने सत्येन्द्र राय सहित 30 अन्य मामले में एक साथ सुनवाई के बाद फैसला सुनाया।

बता दें पिछले साल 4 जुलाई 2022 को कोर्ट ने पहली बार इस मामले पर सुनवाई की थी। सरकार और आवास बोर्ड से जवाब तलब किया था। साथ ही पुलिस को दंडात्मक कार्रवाई से रोक दिया था। 17 नवम्बर 2022 तक चली सुनवाई के बाद कोर्ट ने आदेश सुरक्षित रख लिया था।

बीपीएससी ने शिक्षक नियुक्ति परीक्षा की तिथि का किया एलान, जानिए पूरा डिटेल

डेस्क : शिक्षक नियुक्ति परीक्षा का इंतजार कर रहे अभ्यर्थियों के लिए बड़ी खबर है। बिहार लोक सेवा आयोग (बीपीएससी) ने शिक्षक नियुक्ति परीक्षा की तिथि घोषित कर दी है। 

आयोग की ओर से जारी परीक्षा कैलेंडर के अनुसार शिक्षक नियुक्ति परीक्षा चार चरणों में होगी। 19 अगस्त से इसकी शुरुआत होगी। इसके अलावा 20, 26 और 27 अगस्त को परीक्षा की तारीख तय की गई है। एक दिन कॉमन परीक्षा होगी। इसमें हिन्दी व अंग्रेजी की परीक्षा सभी छात्रों को देनी होगी। यह परीक्षा 100 अंकों की होगी। इसमें पास होना अनिवार्य होगा। 

परीक्षा में टीईटी, सीटेट और एसटीईटी के सफल अभ्यर्थी शामिल होंगे। इसके अलावा वैसे नियोजित शिक्षक जिन्हें राज्यकर्मी का दर्जा प्राप्त करना है, उन्हें भी परीक्षा में बैठने का मौका मिलेगा। 

हालांकि आयोग की ओर से परीक्षा के लिए अब तक विज्ञापन जारी नहीं किया गया। कब से आवेदन की प्रक्रिया शुरू होगी, इसकी जानकारी नहीं दी गई है। कैंलेंडर के अनुसार 1 लाख 70 हजार 461 शिक्षकों की नियुक्ति होनी है। 

जानकारी के मुताबिक बीपीएससी द्वारा शिक्षक नियुक्ति से जुड़ी कुछ जानकारी शिक्षा विभाग से मांगी गई है। यह अभी उपलब्ध नहीं हो पायी है। इसके मिलते ही आवेदन की प्रक्रिया शुरू कर दी जाएगी। इधर, आयोग की ओर से पहले ही परीक्षा का सिलेबस जारी कर दिया गया था।

बिहार में बड़े पैमाने पर पुलिस पदाधिकारियों का तबादला, गृह विभाग ने जारी की अधिसूचना

डेस्क : बिहार में बड़े पैमाने पर पुलिस पदाधिकारियों का तबादला हुआ है। राज्य सरकार ने बिहार पुलिस सेवा के 55 डीएसपी (पुलिस उपाधीक्षक) का तबादला किया है। गृह विभाग ने इससे संबंधित अधिसूचना जारी कर दी है। 

गृह विभाग की ओर से जारी अधिसूचना के अनुसार जमुई स्थित बिविसपु-11 के डीएसपी उमेश कुमार को मुजफ्फरपुर का रेल डीएसपी, पटना में मद्यनिषेध के मनीष आनंद को जमालपुर में रेल डीएसपी बनाया गया है।

पटना मद्यनिषेध के नवीन कुमार को समस्तीपुर रेल, पदस्थापन की प्रतीक्षा में रहे मनोज सुधांशु को भोजपुर यातायात, वाल्मीकि नगर स्थित बिहार स्वाभिमान विशेष सशस्त्रत्त् पुलिस (बिस्वाविसपु) के धीरज कुमार को मुजफ्फरपुर यातायात, पटना स्थित बिहार विशेष सशस्त्रत्त् पुलिस (बिविसपु)-16 की बसंती टुड्डू को सारण यातायात डीएसपी बनायी गयी हैं। 

ईओयू के कौशल किशोर कमल को पूर्णिया यातायात, जमुई के डीएसपी (रक्षित) आशीष कुमार सिंह को भागलपुर यातायात, पटना स्थित बिहार विशेष सशस्त्रत्त् पुलिस-10 के प्रभात रंजन को मुंगेर यातायात डीएसपी के पद पर तैनात किया गया है।

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