गया के डीएम ने सार्वजनिक चापाकलों की स्थिति के बारे में वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग से समीक्षा बैठक की, माइक्रो लेवल पर कार्य करवाने का निर्देश
गया। जिलाधिकारी डॉ त्यागराजन एसएम ने गया जिले में गर्मी के मौसम में शहरी एवं ग्रामीण क्षेत्रों में सार्वजनिक चापाकल की स्थिति के संबंध में सभी प्रखंड के पदाधिकारियों, पंचायती राज विभाग के टेक्निकल असिस्टेंट, सभी प्रखंडों के प्रखंड पंचायत राज पदाधिकारी साथ वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग से समीक्षा बैठक की गई।
इस वर्ष गर्मी के मौसम में किसी भी टोले में /कस्बे में पानी की कोई समस्या ना हो, इसके लिए अभी से ही माइक्रो लेवल पर कार्य करवाने का निर्देश ज़िला पदाधिकारी ने सभी प्रखंड विकास पदाधिकारी को दिया है। समीक्षा बैठक में बताया गया कि जिले के महादलित टोला में विकास मित्र के माध्यम से सार्वजनिक चापाकल का सर्वेक्षण किया गया है, जिसमें 9568 चापाकल में से 3410 चापाकल खराब पाए गए हैं। जिला पदाधिकारी ने कार्यपालक अभियंता पीएचईडी को निर्देश दिया कि प्राथमिकता के आधार पर महादलित टोला में खराब चापाकलो को मरम्मत करवाएं साथ ही उन्होंने निर्देश दिया कि प्रत्येक 15 दिनों के अंतराल पर चापाकल का सर्वेक्षण करवाते रहें ताकि दोबारा कहीं चापाकल खराब होने पर उसे मरम्मत करवाया जा सके।
उन्होंने कहा कि सरकारी विद्यालय, महादलित टोला तथा जिले के माननीय विधायक/ माननीय सांसद तथा अन्य जनप्रतिनिधियों द्वारा उपलब्ध कराए गए सूची को प्राथमिकता पर मरम्मत करवाएं। उन्होंने निर्देश दिया कि 13 मार्च से हर हाल में चापाकल मरम्मत गैंग दल पंचायतों में जाकर मरम्मत कार्य प्रारंभ कर दे। कार्यपालक अभियंता पीएचईडी ने बताया कि चापाकल मरम्मत के लिए 200 टीम को तैयार किया गया है। जिला पदाधिकारी ने कहा कि प्रत्येक दिन प्रत्येक गैंग द्वारा तीन से चार चापाकल मरम्मत हो यह सुनिश्चित करावे। उन्होंने निर्देश दिया कि पंचायत वार हर 10-10 दिन का रोस्टर बनाए तथा उसे जिले के वेबसाइट पर अपलोड कराएं।
जिस प्रखंड तथा पंचायत में सबसे अधिक पेयजल की समस्या तथा खराब चापाकल की समस्या है वहां अधिक संख्या में चापाकल मरम्मत गैंग टीम को भेजें। उन्होंने कहा कि पंचायत के हिसाब से मरम्मत दल टीम का गठन करें। 13 मार्च के पहले सभी प्रकार के उपकरण के साथ-साथ राइजर पाइप को अपने गोडाउन में उपलब्ध रखें ताकि चापाकल मरम्मत गैंग दल को उपकरण बदलने में कोई कठिनाई ना हो। जिलाधिकारी ने निर्देश दिया कि पीएच ई डी विभाग के सभी कनीय अभियंता निरंतर फील्ड में रखकर चापाकल मरम्मत का निगरानी रखेंगे।
जिलाधिकारी ने कार्यपालक अभियंता को निर्देश दिया कि 13 फरवरी तक पीएचडी अपने सभी कुल 52 टैंकर को रंग रोगन सफाई कराते हुए पूरी तरफ फंक्शन रखेंगे। ताकि कहीं से पानी टैंकर की आवश्यकता पड़ने पर उसे तुरंत उपलब्ध कराया जा सके। उन्होंने कहा कि पिछले वर्ष जिस क्षेत्र में पानी का टैंकर अधिक प्रयोग हुआ है उस क्षेत्र में वर्तमान स्थिति में क्षेत्र की क्या स्थिति है इसका आकलन अवश्य करें।
भूगर्भ जल स्तर का हर 15 दिन पर मापी करावे। नल जल योजना के समीक्षा के दौरान बताया गया कि जिले में 1507 योजना में से 295 योजना वर्तमान समय में बंद है जिसमें 163 योजना गया डिवीजन तथा 132 योजना शेरघाटी डिवीजन का है। जिला पदाधिकारी ने स्पष्ट निर्देश दिया कि वैसे संवेदक जो नल जल योजना का अधूरा कार्य कर कर के काम छोड़ दिए हैं तथा कार्य करने में इच्छुक नहीं है वैसे संवेदक के विरुद्ध कार्यवाही करते हुए फ्रेश टेंडर प्रक्रिया करके पेयजल सुचारू करावे। उन्होंने कहा कि जहां छोटी-छोटी समस्या या था मोटर खराब होना स्टार्टर जलना इत्यादि है उन सभी समस्या को 24 घंटे के अंदर निष्पादन कराते हुए पेयजल व्यवस्था को दुरुस्त रखें।
रिपोर्ट: मनीष कुमार।
Mar 08 2023, 13:24