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अदाणी ग्रुप की पहल से गोंडखैरी साइट के ग्रामीण क्षेत्रों में बच्चों को मिले स्कूल बैग्स और वॉटर बॉटल्स

नागपुर: बाल दिवस के अवसर पर अदाणी ग्रुप की गोंडखैरी साइट की सीएसआर टीम ने ग्रामीण विद्यार्थियों के लिए 'स्कूल बैग और वॉटर बॉटल वितरण कार्यक्रम' आयोजित किया। इस दौरान, गोंडखैरी साइट के आसपास के चार गाँवों- सुराबर्डी, आलेसुर, कलंबी और गोंडखैरी के 6 शासकीय विद्यालयों के कुल 82 विद्यार्थियों को स्कूल बैग्स और 73 विद्यार्थियों को वॉटर बॉटल्स वितरित की गईं। कार्यक्रम के सफल आयोजन में स्थानीय स्वयंसेवकों, शिक्षकों और समुदाय के सदस्यों ने सक्रिय सहयोग दिया। स्कूल के शिक्षकों और ग्रामवासियों ने अदाणी ग्रुप की इस पहल की सराहना करते हुए कहा कि ऐसी पहलें न सिर्फ विद्यार्थियों की मदद करती हैं, बल्कि पूरे गाँव में शिक्षा के प्रति सकारात्मक माहौल भी बनाती हैं।

सवर्ण समाज के विखंडन लाभ उठाते हैं राजनेता : कविता तिवारी

लखनऊ । राष्ट्रीय सवर्ण आर्मी भारत की राष्ट्रीय प्रचारक कविता तिवारी ने समाचार पत्रों बातचीत में सवर्ण समाज की अनेकता सवाल उठाते हुए कहा कि वर्तमान समय में राजनेता सवर्ण की अनेकता का लाभ उठा रहे हैं अन्य समाज एक होकर अपना राजनैतिक दल बनाकर रखें हैं और उसी का समर्थन करते हैं जबकि सवर्ण समाज विभिन्न दलों में बिखरा हुआ नज़र आता है सवर्ण की कोई एक राजनैतिक पार्टी नहीं है सवर्ण समाज भिन्न भिन्न दलों को समर्थन देता है जिससे कोई भी राजनैतिक दल सवर्ण समाज का समर्थन नहीं करते हैं या यह कह लीजिए कि सवर्ण समाज की कोई सरकार नहीं है ।

सरकार चाहे जिस पार्टी की हो सवर्ण समाज के लिए कोई भी सार्थक कार्य नहीं करती है किसी भी पार्टी को सवर्ण समाज की आवाज उठाने में पीड़ा महसूस होती है क्योंकि सभी वोट बैंक की राजनीति करते हैं कोई भी दल सवर्णों का नाम नहीं लेता है केवल चुनाव के समय सवर्णों की याद आती है सभी राजनैतिक दलों को।मै तो यही कहना चाहती हूं कि सवर्ण की अनेकता के कारण ही राजनैतिक दल लाभ उठाते हैं अन्य समाज की तरह अगर सर्वण समाज भी एक होकर वोट या एक ही दल का समर्थन करे तो किसी भी सरकार को झुका सकता है।इसलिए सवर्णों को एक जुट होकर उसी दल का समर्थन करें जो सवर्णों के लिए आवाज उठाए ।

कोर्टेवा एग्रीसाइंस का डेलिगेट® कीटनाशक: भारतीय किसानों के लिए सतत और सटीक कीट नियंत्रण को आगे बढ़ाते हुए

इंदौर: कोर्टेवा एग्रीसाइंस ने अपने डेलिगेट® कीटनाशक में नए अपडेट की घोषणा की है, जो मक्का, कपास और मिर्च के किसानों के लिए एक भरोसेमंद समाधान के रूप में एकीकृत कीट प्रबंधन (आई.पी.एम.) में इसकी भूमिका को और मजबूत करता है। सिद्ध प्रभावशीलता, कीट-प्रतिरोध प्रबंधन और आर्थिक मूल्य के साथ, डेलिगेट भारतीय किसानों को अधिक उत्पादकता और सामर्थ्य प्राप्त करने में सक्षम बनाता है।

कई वर्षों से डेलिगेट किसानों का विश्वसनीय सहयोगी रहा है, जो मक्का में फॉल आर्मीवर्म (एफ.ए.डब्ल्यू.) और कपास व मिर्च में थ्रिप्स जैसे हानिकारक कीटों पर तेज़ और प्रभावी नियंत्रण के लिए जाना जाता है। यह रणनीतिक सुधार पारंपरिक कीट नियंत्रण से आगे बढ़कर, डेलिगेट की वैज्ञानिक विशेषताओं को रेखांकित करता है, जो फसल संरक्षण के लिए अधिक सक्रिय और टिकाऊ दृष्टिकोण को बढ़ावा देती हैं।

कृषि परिदृश्य तेजी से बदल रहा है, और अधिक सटीक व सतत समाधान की आवश्यकता बढ़ रही है। डेलिगेट इसी संतुलन को दर्शाता है—यह किसानों को सशक्त बनाते हुए एफ.ए.डब्ल्यू. और थ्रिप्स जैसे कीटों को प्रभावी ढंग से निशाना बनाता है, साथ ही मधुमक्खियों और अन्य प्राकृतिक परभक्षियों जैसे लाभकारी कीटों के लिए सुरक्षित रहता है। इसका केंद्रित प्रभाव खेत के पारिस्थितिकी तंत्र के स्वास्थ्य को समर्थन देता है और आधुनिक आई.पी.एम. सिद्धांतों के अनुरूप है।

इसके अतिरिक्त, यह पारिस्थितिक संतुलन बनाए रखने में मदद करता है, जिससे बेहतर फसलें और उच्च गुणवत्ता की पैदावार प्राप्त होती है। इसका अवशिष्ट प्रभाव लंबे समय तक सुरक्षा प्रदान करता है, जिससे बार-बार स्प्रे करने की आवश्यकता कम होती है और किसानों का समय व संसाधन बचते हैं।

डेलिगेट का समयानुसार उपयोग इसकी प्रभावशीलता को अधिकतम करता है। मक्का में, बोआई के 15-25 दिनों के भीतर एक स्प्रे एफ.ए.डब्ल्यू. से सुरक्षा प्रदान करता है और समान वृद्धि को बढ़ावा देता है, जबकि 30-35 दिनों पर दूसरा स्प्रे सुरक्षा को मजबूत करता है, भुट्टों की गुणवत्ता में सुधार लाता है और पैदावार बढ़ाता है। कपास में, फूल आने के समय पहला स्प्रे थ्रिप्स को नियंत्रित करता है, और बॉल बनने के समय दूसरा स्प्रे बॉल वृद्धि को बढ़ाता है तथा अन्य लेपिडोप्टेरन कीटों से सुरक्षा सुनिश्चित करता है। मिर्च में, फूल आने और फल लगने की शुरुआत जैसे महत्वपूर्ण चरणों पर सही समय पर स्प्रे थ्रिप्स से होने वाले नुकसान को रोकता है, जिससे बेहतर फल गुणवत्ता और अधिक पैदावार मिलती है।

आधुनिक आई.पी.एम. तकनीकों में डेलिगेट को शामिल करके किसान एक विश्वसनीय, टिकाऊ और लाभदायक समाधान प्राप्त करते हैं, जो स्प्रे की संख्या कम करता है और किसानों का समय, श्रम और संसाधन बचाता है। डेलिगेट के साथ एक योजनाबद्ध दृष्टिकोण किसानों के परिणामों में सुधार करता है—जहां वे प्रतिक्रियात्मक स्प्रेइंग से आगे बढ़कर रणनीतिक फसल प्रबंधन अपना सकते हैं। यह निरंतर गुणवत्ता, बेहतर पैदावार और अधिक लाभ सुनिश्चित करता है, जिससे किसान अपने भविष्य पर अधिक नियंत्रण पा सकते हैं।

डेलिगेट का विकास कोर्टेवा एग्रीसाइंस की सतत कृषि और भारतीय किसानों की दीर्घकालिक दृढ़ता के प्रति प्रतिबद्धता को दर्शाता है।

सिर्फ 10 महीनों में ही स्‍कोडा ऑटो इंडिया की सालाना बिक्री ने बनाया नया रिकॉर्ड

अक्टूबर में दर्ज की अब तक की सर्वाधिक मासिक बिक्री

• जनवरी से अक्टूबर 2025 के बीच 61,607 कारों की बिक्री दर्ज

• 2022 में दर्ज 53,721 यूनिट्स के पिछले वार्षिक रिकॉर्ड को तोड़ा

• अक्टूबर 2025 में 8,252 से अधिक यूनिट्स की बिक्री, अब तक की सबसे बड़ी मासिक उपलब्धि

स्‍कोडा ऑटो इंडिया के लिए ऐतिहासिक रहा है — कंपनी ने भारत में अपने 25 साल पूरे किए हैं। इसी वर्ष के अक्टूबर महीने में ब्रांड ने एक और बड़ी उपलब्धि हासिल की, देश में अपनी अब तक की सर्वाधिक वार्षिक बिक्री का आंकड़ा पार किया।

जनवरी से अक्टूबर 2025 के बीच स्‍कोडा ऑटो इंडिया ने 61,607 वाहनों की बिक्री दर्ज की। यह उपलब्धि कंपनी के अब तक के सर्वश्रेष्ठ तिमाही और अर्धवार्षिक प्रदर्शन के बाद आई है। अक्टूबर 2025 में 8,252 से अधिक यूनिट्स की बिक्री के साथ स्‍कोडा ऑटो इंडिया ने अपनी अब तक की सबसे बड़ी मासिक बिक्री भी दर्ज की है।

इस शानदार वृद्धि के पीछे सबसे बड़ी भूमिका रही स्‍कोडा ऑटो इंडिया की पहली सब-4 मीटर एसयूवी ‘काइलैक’ की, जिसकी बिक्री निरंतर मज़बूती से बढ़ रही है। इसके साथ ही, ब्रांड की फ्लैगशिप लक्ज़री 4x4 कोडियाक, लोकप्रिय कुशाक और स्‍लाविया मॉडलों का योगदान भी लगातार बना हुआ है। वहीं, उच्च-प्रदर्शन वाली ऑक्‍टैविया आरएस लॉन्च के केवल 20 मिनट के भीतर ही पूरी तरह बिक गई।

इस ऐतिहासिक उपलब्धि के बारे में आशीष गुप्ता, ब्रांड डायरेक्टर, स्‍कोडा ऑटो इंडिया, ने कहा, “हमने वर्ष 2025 की शुरुआत भारत में ब्रांड को मज़बूती से आगे बढ़ाने और नई ऊँचाइयों तक पहुँचाने के संकल्प के साथ की थी। यह ‘अब तक की सबसे बड़ी बिक्री’ हमारे स्पष्ट दृष्टिकोण, दृढ़ संकल्प और तेज़ कार्यान्वयन का प्रमाण है — इन्हीं ने भारत में हमारी प्रगति को नई गति दी है। हमारा नए और आकर्षक मॉडलों की पेशकश, भारतीय ग्राहकों से जुड़ती हमारी संवाद शैली, 318 ग्राहक टचप्वाइंट्स तक विस्तारित नेटवर्क और नए भौगोलिक क्षेत्रों में उपस्थिति, ये सभी हमारे 25वें वर्ष को भारत में अब तक का सबसे सफल वर्ष बनाने में निर्णायक रहे हैं।”

प्रासंगिकता और प्रगति का वर्ष

स्‍कोडा ऑटो इंडिया के लिए यह वर्ष उसके उत्पाद नवाचार और नेटवर्क विस्तार रणनीति की सफलता से प्रेरित रहा है। ब्रांड की पहली सब-4 मीटर एसयूवी ‘काईलैक’ लॉन्च के बाद से ही ग्राहकों की पहली पसंद बन गई है - अब तक इसकी 40,000 से अधिक यूनिट्स बिक चुकी हैं।

कुशाक और स्‍लाविया के लिमिटेड एडिशन मॉडलों ने ग्राहकों के लिए ब्रांड के मूल्य प्रस्ताव को और आकर्षक बनाया है, जबकि फ्लैगशिप 4x4 कोडियाक ने लक्ज़री अनुभव को नई ऊँचाई दी है।

ऑटो प्रेमियों के लिए प्रतिष्ठित ओक्‍टैविया आरएस ने परफॉर्मेंस और ड्राइविंग का रोमांच फिर से जीवंत कर दिया है।

स्‍कोडा ने अब भारत में स्थानीय रूप से निर्मित स्‍लाविया, कुशाक और काइलैक मॉडलों की 2,00,000 से अधिक कारों की बिक्री का महत्वपूर्ण मील का पत्थर हासिल किया है। कंपनी का नेटवर्क अब 180 शहरों में 318 ग्राहक टचप्वाइंट्स तक फैल चुका है।

काइलैक, कुशाक और कोडियाक के साथ स्‍कोडा अब हर आकांक्षा के अनुरूप एसयूवी विकल्प प्रदान करती है, जबकि स्‍लाविया और ऑक्‍टैविया आरएस की वापसी के साथ अपने प्रतिष्ठित सेडान सेगमेंट की विरासत को भी आगे बढ़ा रही है।

ब्रांड की विशिष्ट पहचान

स्‍कोडा ने अपने ब्रांड संचार को अर्थपूर्ण कहानियों और संवेदनशील संदेशों के माध्यम से एक विशिष्ट पहचान देने पर ध्यान केंद्रित किया है। भारत, स्‍कोडा ऑटो का दुनिया का पहला बाज़ार बन गया है जिसने अपने पूरे नेटवर्क का 100% रीब्रांडिंग नई कॉर्पोरेट आइडेंटिटी और डिज़ाइन के साथ पूरा किया है। लोकप्रिय ‘आई लव माई डोडा’ अभियान ने ग्राहकों को कहानी के केंद्र में रखकर स्‍कोडा की ‘मालिक नहीं, प्रशंसक’ वाली भावना को शानदार ढंग से प्रस्तुत किया।

भरोसा और संबंध मज़बूत करना

स्‍कोडा ऑटो इंडिया ग्राहकों के अनुभव और सेवा उत्कृष्टता पर लगातार ध्यान केंद्रित कर भरोसा मज़बूत कर रही है। कंपनी का लक्ष्य है कि 2025 के अंत तक अपने सेल्स और आफ्टरसेल्स नेटवर्क में कर्मचारियों की संख्या 50% बढ़ाकर 7,500 से अधिक कर दी जाए। इसके साथ ही, 25,000 से अधिक ट्रेनिंग डे में निवेश कर आफ्टरसेल्स गुणवत्ता और ग्राहक संतुष्टि को और ऊँचा उठाया जाएगा।

ब्रांड की यह प्रतिबद्धता केवल सेवाओं तक सीमित नहीं है — यह ग्राहकों के साथ एक सशक्त समुदाय निर्माण की दिशा में उठाया गया कदम भी है। हाल ही में हुए ‘फैन्‍स ऑफ स्‍कोडा’ कैंपेन के तहत, 60 से अधिक स्‍कोडा प्रशंसकों ने 28 कारों के काफिले के साथ 19,024 फीट ऊँचाई पर स्थित उमलिंग ला तक ड्राइव कर भारत और एशिया बुक ऑफ रिकॉर्ड्स में नाम दर्ज कराया, जो ब्रांड और उसके प्रशंसकों के बीच गहरे संबंध का प्रतीक है।

नई बहादुरी का अध्याय शुरू: ‘बॉर्डर 2’ से वरुण धवन का फर्स्ट लुक हुआ रिलीज़

* पोस्टर में वरुण धवन के एक दमदार और परिवर्तित अवतार की झलक दिखाई दे रही है, जब वे भारत की सबसे प्रतिष्ठित युद्ध फिल्म ‘बॉर्डर 2’ की दुनिया में कदम रख रहे हैं। फिल्म 23 जनवरी 2026 को रिलीज़ होगी।

सनी देओल के फर्स्ट पोस्टर को मिली जबरदस्त प्रतिक्रिया के बाद, अब फिल्म के निर्माता टी-सीरीज़ और जेपी फिल्म्स ने वरुण धवन का बहुप्रतीक्षित फर्स्ट लुक जारी कर दिया है, जो भारत की सबसे बड़ी देशभक्ति फिल्म में एक नई पीढ़ी के साहस का प्रतीक है।

पोस्टर में वरुण धवन एक भारतीय सैनिक के रूप में दिखाई दे रहे हैं — हाथ में बंदूक लिए, जोश और एक्शन से भरपूर अंदाज़ में। उनके चेहरे का भाव दृढ़ संकल्प, शक्ति और देशभक्ति की भावना को दर्शाता है। सेना की वर्दी में सजे वरुण का यह नया लुक उन्हें एक बिल्कुल अलग और प्रभावशाली अवतार में पेश करता है।

यह नया खुलासा ‘बॉर्डर 2’ की भावनात्मक यात्रा में एक और प्रेरणादायक अध्याय जोड़ता है — एक ऐसी कहानी जो साहस, भाईचारे और बलिदान की उस विरासत को आगे बढ़ाती है जिसने एक पीढ़ी को परिभाषित किया था, और अब अगली पीढ़ी को प्रेरित करेगी। वरुण धवन के इस प्रभावशाली पहले लुक के साथ, ‘बॉर्डर 2’ 2026 की सबसे प्रतीक्षित फिल्मों में से एक बनने के लिए तैयार है।

अनुराग सिंह के निर्देशन में बनी इस फिल्म में सनी देओल, वरुण धवन, दिलजीत दोसांझ, अहान शेट्टी, मेधा राणा, मोना सिंह और सोनम बाजवा जैसे कलाकार नज़र आएंगे। फिल्म का निर्माण भूषण कुमार, जे.पी. दत्ता और निधि दत्ता ने किया है। यह फिल्म 23 जनवरी 2026 को रिलीज़ होगी, जो गणतंत्र दिवस के सप्ताहांत पर दर्शकों के लिए देशभक्ति से भरा अनुभव लेकर आएगी।

‘बॉर्डर 2’ को गुलशन कुमार और टी-सीरीज़ प्रस्तुत कर रहे हैं, जेपी दत्ता की जे.पी. फिल्म्स के सहयोग से। फिल्म का निर्माण भूषण कुमार, कृष्ण कुमार, जे.पी. दत्ता और निधि दत्ता द्वारा किया गया है, जबकि निर्देशन अनुराग सिंह ने संभाला है। यह फिल्म भारतीय सैनिकों के साहस और अटूट जज़्बे को सलाम करती है और दर्शकों को देशभक्ति, पराक्रम और बलिदान की एक रोमांचक यात्रा पर ले जाएगी।

लिंक: https://www.instagram.com/p/DQqb8NWjAIl/?igsh=bHJtMmhmenA1Zno1

तैयार हो जाइए इस भव्य और भावनात्मक गाथा के लिए — क्योंकि ‘बॉर्डर 2’ 23 जनवरी 2026 को सिनेमाघरों में धूम मचाने आ रही है।

डीलशेयर ने कंज़्यूमर फर्स्ट, वैल्यू ई-कॉमर्स रिलॉन्च के साथ जयपुर में अपने कदम मजबूत किए

भारत के होमग्रोन वैल्यू ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म, डीलशेयर ने आज कोलकाता, लखनऊ और दिल्ली-एनसीआर के कुछ हिस्सों (गाजियाबाद और गुरुग्राम) में विस्तार के बाद जयपुर में अपनी सेवाएं शुरू कीं। इसके साथ ही कंपनी ने अगले दिन डिलीवरी सेवाओं के मुकाबले ग्राहकों पर केंद्रित, ज्यादा बचत प्रदान करने वाले ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म के रूप में काम करना शुरू कर दिया है। यह मॉडल शहर में बचत पसंद करने वाले परिवारों की जरूरतों को पूरा करने के लिए डिज़ाईन किया गया है।कंपनी ने ये सेवाएं भारत में ई-कॉमर्स क्षेत्र में मौजूद एक बड़ी कमी को देखकर शुरू की हैं। जहाँ क्विक कॉमर्स और प्रीमियम ग्रोसरी प्लेटफॉर्म ग्राहकों को सुविधा तो प्रदान कर रहे हैं, लेकिन इसके बदले में ग्राहकों को अपनी बचत और पारदर्शिता से समझौता करना पड़ता है। भारत में लाखों परिवार हर खरीद करने से पहले मूल्यों की तुलना करते हैं, बजट देखते हैं और योजना बनाते हैं। इसलिए मूल्यों के मामले में कोई भी समझौता नहीं किया जा सकता है। डीलशेयर का लक्ष्य अप नी सेवाओं का विस्तार करके इस वंचित वर्ग को सेवाएं प्रदान करना है। उस भारत को सेवाएं देना है, जो बचत को बहुत ज्यादा महत्व देता है। इसलिए यह प्लेटफॉर्म बिना समझौते के किफायती होने के लिए डिज़ाईन किया गया है।

डीलशेयर 2.0 इस विश्वास पर केंद्रित है कि बचत से कोई भी समझौता नहीं किया जा सकता है क्योंकि इससे सशक्तीकरण होता है। इस नए मॉडल में स्थानीय सप्लायर, प्राईवेट लेबल और क्षेत्रीय ब्रांड्स को शामिल किया गया है, ताकि अन्य के मुकाबले 20 से 30 प्रतिशत कम मूल्य में उत्पाद उपलब्ध कराए जा सकें। यह एक अपग्रेडेड, टेक्नोलॉजी-इनेबल्ड सप्लाई चेन है। 2 घंटे के डिलीवरी प्रॉमिज़ द्वारा भारत के ग्राहकों को बेहतर मूल्य के साथ सुविधा भी प्राप्त होती है।डीलशेयर के सीईओ, कमलदीप सिंह ने कहा, ‘‘हम डीलशेयर में एक नए अध्याय की शुरुआत कर रहे हैं, जो भारत में सबसे बड़े विकासशील बाजार, यानी मध्यम वर्ग पर केंद्रित है। हमारे नेटवर्क, टेक्नोलॉजी, प्रक्रियाओं में संशोधन कर तथा प्राईवेट लेबल एवं क्षेत्रीय व स्थानीय ब्रांड्स को मजबूत करके हम न केवल कम मूल्य में उत्पाद उपलब्ध कराना चाहते हैं, बल्कि बेहतरीन क्वालिटी के साथ विश्वास भी बढ़ाना चाहते हैं। हमारा उद्देश्य है कि भारतीय परिवारों के लिए दैनिक शॉपिंग ज्यादा सरल, स्मार्ट और फायदेमंद बने।’’

ग्रोसरी, दैनिक सामग्री और पारिवारिक वस्तुओं में प्राईवेट लेबल ब्रांड्स का डीलशेयर का बढ़ता पोर्टफोलियो इस मिशन में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा। यह प्लेटफॉर्म ग्राहकों को बेहतर मार्जिन के साथ किफायती और उच्च क्वालिटी के उत्पाद उपलब्ध कराएगा, जिससे उनका विश्वास मजबूत होगा।’’अनुभवी लीडरशिप टीम और अनुशासित ऑपरेशंस के साथ कंपनी सस्टेनेबल विस्तार और हितधारकों के आत्मविश्वास पर केंद्रित है। सशक्तीकरण, इनोवेशन और सस्टेनेबल विकास पर ध्यान केंद्रित करके कंपनी का उद्देश्य भारत में शॉपिंग के तरीके में परिवर्तन लाना है। कंपनी स्मार्ट मूल्यों, मजबूत सप्लाई चेन और ब्रांड के वादे के साथ दैनिक लाभ प्रदान करना चाहती है।

ग्राहकों पर केंद्रित रहते हुए डीलशेयर ने अपना लेटेस्ट ब्रांड कैम्पेन, ‘‘मेहनत की कमाई, हक से बचाओ’’ शुरू किया है। इस फिल्म में प्लेटफॉर्म का ‘किफायती रहने’ का वादा दिखाया गया है। इस फिल्म में बचत करने के अधिकार और गर्व के साथ अपनी कमाई बचाने पर जोर दिया गया है।

धीरेन्द्र शास्त्री की यात्रा से भाई चारा का खतरा है तो क्या मनु स्मृति जलाने से भाई चारा बढ़ेगा : कविता तिवारी

लखनऊ । आज के दौर में सनातन का सबसे ज्यादा विरोध हिन्दू स्वयं ही कर रहे हैं आस्तिक या नास्तिक होना अपनी विचारधारा है किंतु इस तरह का विरोध सनातन का अपमान ही नहीं अपितु देश की संप्रभुता पर भी सवाल उठाती है ऐसे कई नेता हैं जो सनातन का विरोध करते हैं आए हैं किंतु दामोदर यादव जी कुछ ज्यादा ही कर रहे हैं वह भी फेमस होने के लिए।

दामोदर जी ने पहले तो धीरेन्द्र शास्त्री की सनातन पद यात्रा यानी हिंदू जोड़ो यात्रा का राष्ट्रपति जी को पत्र लिखकर किया जब वहां भी सुनवाई नहीं हुई तो कोर्ट जाने की धमकी दी जब इतने से भी लोगों के द्वारा प्रसिद्ध नहीं हो पाए तो अब मनुस्मृति का एक पोस्टर बनाया और सड़क पर खड़े होकर कुछ लोगों के समूह के साथ जला दिया। पोस्टर जलाओ या मनुस्मृति जलाओ बात सिर्फ सनातन के विरोध की है। दामोदर यादव जी लगातार धीरेन्द्र शास्त्री जी की यात्रा को लेकर कहते रहे हैं कि इससे देश की संप्रभुता और भाईचारे के लिए खतरा है ।

मै कविता तिवारी राष्ट्रीय सवर्ण आर्मी भारत राष्ट्रीय प्रचारक पूछना चाहती हूं कि धीरेन्द्र शास्त्री जी की यात्रा से देश की संप्रभुता और अखंडता , भाईचारे को खतरा है तो मनुस्मृति जलाने से देश में भाईचारा बढ़ेगा। दामोदर यादव जी देश की शांति भंग करने का कार्य सनातन धर्म के अपमान के द्वारा कर रहे हैं ।सरकार से मांग करती हूं कि करोड़ों लोगों की आस्था से खिलवाड़ करने वाले लोगों पर अंकुश लगाया जाए क्योंकि आजकल कुछ नेता धर्म विरोधी बातें एवं कार्य करके स्वयं को मसीहा बनाने की फ़िराक़ में हैं।

आईसीआईसीआई प्रु लाइफ ने ग्राहकों को जीएसटी लाभ दिया, जिससे बीमा सस्ता हुआ

दिल्ली।टर्म इंश्योरेंस किसी भी व्यक्ति की वित्तीय योजना का एक अहम् हिस्सा होता है। यह परिवार के लिए आय के विकल्प के रूप में काम करता है, ताकि यदि कमाने वाला सदस्य अब न रहे तो भी परिवार अपने वित्तीय लक्ष्यों को पूरा किया जा सके। हाल ही में भारत सरकार ने एक बड़ा सुधार लागू किया है, जिसके तहत सभी बीमा पॉलिसीज़ को जीएसटी से मुक्त कर दिया गया है। पहले ग्राहकों को प्रीमियम राशि पर 18% जीएसटी देना पड़ता था। उदाहरण के लिए, यदि किसी व्यक्ति की प्रीमियम 100 रुपए थी, तो उस पर 18 रुपए अतिरिक्त जीएसटी देना होता था। अब इस छूट के बाद व्यक्ति को सिर्फ 100 रुपए ही चुकाने होंगे। इससे जीवन बीमा और टर्म इंश्योरेंस दोनों योजनाएँ सस्ती हो गई हैं। आईसीआईसीआई प्रूडेंशियल लाइफ इंश्योरेंस ने अपने ग्राहकों को इस जीएसटी छूट का पूरा लाभ दिया है, जो कंपनी की “ग्राहकों को सर्वोत्तम मूल्य देने” की प्रतिबद्धता को दर्शाता है। इससे बीमा योजनाएँ अब और भी किफायती और हर भारतीय परिवार के लिए सुलभ हो गई हैं। अब देखते हैं कि इसका टर्म इंश्योरेंस की कीमतों पर क्या असर हुआ है। पहले 30 वर्ष के एक पुरुष (गैर-धूम्रपान करने वाले) को 1 करोड़ रुपए के जीवन कवर और 30 वर्ष की अवधि के लिए 825 रुपए मासिक प्रीमियम (जीएसटी सहित) देना पड़ता था। अब उसी व्यक्ति को केवल 699 रुपए मासिक प्रीमियम देना होगा। इसी तरह, 30 वर्ष की महिला (गैर-धूम्रपान करने वाली) के लिए पहले यह राशि 697 रुपए (जीएसटी सहित) थी, जो अब घटकर सिर्फ 594 रुपए रह गई है। आईसीआईसीआई प्रूडेंशियल लाइफ इंश्योरेंस कंपनी लिमिटेड के चीफ प्रोडक्ट ऑफिसर, श्री विकास गुप्ता ने कहा, “हमारा मानना है कि सच्चा मूल्य वही है, जो ग्राहक के हित में हो। हम अपने ग्राहकों को जो भी बचत लौटाते हैं, वह न केवल भरोसा बढ़ाती है, बल्कि बीमा को और किफायती बनाती है। इससे हम उस लक्ष्य के और करीब पहुँचते हैं, जहाँ गुणवत्तापूर्ण बीमा हर व्यक्ति की पहुँच में हो। यह हमारे उस प्रयास को भी आगे बढ़ाता है जिसके तहत हम देश में सुरक्षा कवरेज का दायरा बढ़ाना चाहते हैं, ताकि अधिक से अधिक लोग अपने भविष्य को सुरक्षित करने की दिशा में कदम बढ़ाएँ।” दरअसल, टर्म इंश्योरेंस एक वित्तीय सुरक्षा कवच है, जो यह सुनिश्चित करता है कि व्यक्ति के न रहने पर भी उसके अपने सुरक्षित रहें। इसलिए यह जरूरी है कि ऐसे सुरक्षा उत्पाद सभी के लिए किफायती हों। कम प्रीमियम से बीमा कवरेज का दायरा और गहराई बढ़ेगी, जिससे लाखों भारतीयों के जीवन में वित्तीय सुरक्षा लाने के राष्ट्रीय लक्ष्य को मजबूती मिलेगी।
हुनर और स्वाद के महासंग्राम- 'बुंदेली शेफ सीज़न 3' में 14 महिला प्रतिभागी क्वार्टर फाइनल की रेस में

पहले और दूसरे ऑडिशन से चुनी गईं 14 होनहार प्रतिभागी अगले राउंड में दिखाएँगी अपने स्वाद का दमखम 

14 दिसंबर, 2025 को छतरपुर स्थित द रुद्राक्ष होटल में होगा फिनाले  

छतरपुर : महिलाओं के लिए देश की पहली बुंदेली पाक कला पर आधारित ऑनलाइन प्रतियोगिता 'बुंदेली शेफ' ने अपने तीसरे संस्करण के साथ एक बार फिर पूरे बुंदेलखंड को स्वाद, सुगंध और संस्कृति के रंगों में रंग दिया है। रसोई से उठती देसी खुशबू अब क्वार्टर फाइनल की ओर बढ़ चली है, जहाँ महिलाएँ अपने स्वाद के हुनर के साथ ही अपनी अलग पहचान की नई कहानी भी लिख रही हैं।

पहले ऑडिशन राउंड में चयनित 7 महिला प्रतिभागियों के बाद दूसरे ऑडिशन राउंड में भी 7 प्रतिभाशाली महिलाओं ने अपने हुनर से जजेस और दर्शकों का दिल जीत लिया। ऐसे में, अब 14 प्रतिभागी आगे की रेस में अपने हुनर का जादू चलाएँगी। बताते चलें, प्रतिभागियों के हुनर को परखने के लिए अनुभवी जज पैनल में बुंदेली शेफ सीज़न 1 की विजेता समिता, सीज़न 2 की विजेता ज़हीदा परवीन और आतिथ्य क्षेत्र में 20 वर्षों का अनुभव रखने वालीं मेघना शर्मा शामिल हैं, जो स्वाद, प्रस्तुति और नवाचार तीनों का बारीकी से आकलन कर रही हैं। 

बुंदेलखंड 24x7 के चैनल हेड, आसिफ पटेल ने कहा, "इस ऑनलाइन कुकिंग प्रतियोगिता के पहले दो सीज़न की लोकप्रियता ने तीसरे सीज़न को और भी खास बना दिया। इस प्रतियोगिता का बुंदेलखंड में इतना बोलबाला है कि लोग महीनों पहले से इसका इंतज़ार करने लगते हैं। मूल रूप से बुंदेलखंड से आने वाली महिलाएँ देशभर के किसी भी कोने से प्रतियोगिता का हिस्सा बन सकती हैं, इसकी यही बात इसे तमाम प्रतियोगिताओं से जुदा करती है। सभी 14 प्रतिभागियों को शुभकामनाएँ ।"

हमीरपुर की रीना सचान द्वारा बनाई गई ब्राउनी; सागर की दो प्रतिभागी: रानू झा की खुमाद खीर और गीतांजलि साहू द्वारा बनाए गए मैथी की भाजी के पकौड़े; झाँसी की तीन प्रतिभागी- शाजिदा आमिर द्वारा पेश किए गए दहीबड़े, हेमा गुप्ता के बुंदेली थोपा, पल्लवी जैन द्वारा पेश की गई बुंदेली थाली; पन्ना की नैंसी शिवहरे द्वारा बनाए गए गुंजा को दूसरे ऑडिशन राउंड में 5 नवंबर को होने वाले क्वार्टर फाइनल के लिए चुना गया। हुनर और स्वाद के इस महासंग्राम में उतरने के बाद स्वाद का कारवाँ 19 नवंबर को सेमीफाइनल और 14 दिसंबर को फिनाले तक पहुँचेगा, जो कि छतरपुर की द रुद्राक्ष होटल में आयोजित होगा।

गौरतलब है कि बुंदेलखंड 24x7 द्वारा आयोजित इस प्रतियोगिता को रुद्राणी कलाग्राम का सहयोग प्राप्त है। उत्तर भारत की मशहूर पब्लिक रिलेशन्स एजेंसी 'पीआर 24x7' पीआर पार्टनर के रूप में, 'अफ्फी स्पोर्ट्स' ट्रॉफी पार्टनर और 'तारुका इको' गिफ्टिंग पार्टनर, 'द रुद्राक्ष होटल' वैन्यू पार्टनर और के रूप में '2030 का भारत' बतौर सोशल पार्टनर प्रतियोगिता से जुड़े हैं।

ट्रांसपोर्ट कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया लिमिटेड (टीसीआई) ने वित्त वर्ष 2025-26 की दूसरी तिमाही में मजबूत वृद्धि दर्ज की

दिल्ली : ट्रांसपोर्ट कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया लिमिटेड (टीसीआई), जो भारत की अग्रणी एकीकृत मल्टीमॉडल लॉजिस्टिक्स और सप्लाई चेन सॉल्यूशन्स प्रदाता कंपनी है, ने 30 सितंबर, 2025 को समाप्त दूसरी तिमाही (वित्त वर्ष 26 की दूसरी तिमाही) के वित्तीय परिणामों की घोषणा की।

वित्त वर्ष 26 की दूसरी तिमाही के प्रमुख वित्तीय अंश:

• राजस्व: ₹12,174 मिलियन, जो पिछले वर्ष की समान अवधि (₹11,314 मिलियन) की तुलना में 8% वृद्धि दर्शाता है।

• एबिट्डा (ब्याज, कर, मूल्यह्रास और परिशोधन से पहले की आय): ₹1,624 मिलियन, जो पिछले वर्ष के ₹1,519 मिलियन की तुलना में 7% की वृद्धि है।

• पीएटी (करोत्तर लाभ): ₹1,135 मिलियन, जो पिछले वर्ष के ₹1,073 मिलियन की तुलना में 6% की वृद्धि है।

समेकित

प्रदर्शन की मुख्य विशेषताएँ: वित्त वर्ष 26 की दूसरी तिमाही बनाम वित्त वर्ष 25 की दूसरी तिमाही समेकित (₹ मिलियन में)

प्रदर्शन की मुख्य विशेषताएँ: वित्त वर्ष 26 की छमाही बनाम वित्त वर्ष 25 की छमाही समेकित (₹ मिलियन में)

विवरण 30.09.2025 30.09.2024 वृद्धि % विवरण 30.09.2025 30.09.2024 वृद्धि %

राजस्व 12174 11314 7.6% राजस्व 23680 21874 8.3%

एबिट्डा 1624 1519 6.9% एबिट्डा 3144 2877 9.3%

पीएटी 1135 1073 5.8% पीएटी 2207 1989 11.0%

 

स्टैंडअलोन

प्रदर्शन की मुख्य विशेषताएँ: वित्त वर्ष 26 की दूसरी तिमाही बनाम वित्त वर्ष 25 की दूसरी तिमाही स्टैंडअलोन (₹ मिलियन में)

प्रदर्शन की मुख्य विशेषताएँ: वित्त वर्ष 26 की छमाही बनाम वित्त वर्ष 25 की छमाही स्टैंडअलोन (₹ मिलियन में)

विवरण 30.09.2025 30.09.2024 वृद्धि % विवरण 30.09.2025 30.09.2024 वृद्धि %

राजस्व 10652 10120 5.3% राजस्व 20990 19959 5.2%

एबिट्डा 1303 1228 6.1% एबिट्डा 2932 2675 9.6%

पीएटी 878 825 6.4% पीएटी 2120 1872 13.2%

प्रबंधन की टिप्पणी:

कंपनी के प्रबंध निदेशक श्री विनीत अग्रवाल ने कहा, “हमें दूसरी तिमाही में स्थिर प्रदर्शन की रिपोर्ट करते हुए खुशी हो रही है, जो ऑटो, एफएमसीजी और उपभोक्ता टिकाऊ वस्तुओं में मजबूत माँग से प्रेरित है, जो हमारी रणनीति, परिचालन दक्षता और प्रभावी कार्यान्वयन की मजबूती को दर्शाता है। सभी उत्पाद खंडों/डिवीजन्स ने संतोषजनक प्रदर्शन किया है।

जीएसटी 2.0 के कार्यान्वयन ने अनुपालन में स्पष्टता और कराधान को सरल बनाया है, जिससे लॉजिस्टिक्स संचालन अधिक सुचारू हुए हैं। बेहतर सामर्थ्य और तेजी से पूर्ति के शुरुआती संकेत पहले से ही दिखाई दे रहे हैं, जिसे प्रमुख उपभोग श्रेणियों में त्यौहारी सीजन की माँग से और बल मिल रहा है।

हमने अपने वेयरहाउसिंग नेटवर्क का विस्तार किया है और ऑटोमेशन व स्मार्ट मल्टीमॉडल संपत्तियों में निवेश जारी रखा है। हमारी रेल और तटीय मल्टीमॉडल लॉजिस्टिक्स सेवाएँ उच्च क्षमता वाली, पर्यावरण-अनुकूल और कुशल परिवहन प्रणाली प्रदान कर रही हैं।स्थिरता के मोर्चे पर, हम वैकल्पिक ईंधन तकनीकों के परीक्षण के साथ अपने ग्रीन फ्लीट में निवेश कर रहे हैं। साथ ही स्वच्छ ऊर्जा, कचरा प्रबंधन और मोडल शिफ्ट जैसी पहलों पर भी काम जारी है।

टीसीआई- आईआईएम बैंगलोर पहल के तहत विकसित लैब के परिवहन उत्सर्जन माप उपकरण (टीईएमटी) को अब उद्योग और आंतरिक व्यापार संवर्धन विभाग (डीपीआईआईटी) द्वारा औपचारिक रूप से अपना लिया गया है और इसकी आधिकारिक वेबसाइट (https://dpiit.freightemissions.com/ ) पर उपलब्ध करा दिया गया है, जिससे एक बड़ी उपलब्धि हासिल हुई है।

जैसे-जैसे भारत का लॉजिस्टिक्स परिदृश्य तेज़ी से विकसित हो रहा है, टीसीआई एकीकृत, तकनीक-सक्षम और पर्यावरणीय रूप से टिकाऊ सप्लाई चेन समाधान प्रदान करने के अपने संकल्प पर कायम है।“