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दरभंगा के LNMU में 98.28% हुआ एडमिशन, 58 सीट रिक्त
दरभंगा में सीईटी बीएड में नामांकन का तीसरा चक्र 9 अक्टूबर को पूरा हो गया। ललित नारायण मिथिला विश्वविद्यालय ने तीसरे चक्र के समाप्ति तक 98.28 प्रतिशत नामांकन कर लिया है। केवल 58 सीट रिक्त रह गई है। जबकि, संस्कृत विश्वविद्यालय ने सभी 100 सीटों पर नामांकन ले लिया है। ललित नारायण मिथिला विश्वविद्यालय के कुलपति प्रोफेसर संजय कुमार चौधरी ने बताया कि इस साल शतप्रतिशत नामांकन किए जाने की पूरी संभावना है।

दुर्गा पूजा की छुट्‌टी के बाद फिर से नामांकन की तिथि की घोषणा की जाएगी। राज्य नोडल पदाधिकारी प्रोफेसर अशोक कुमार मेहता ने बताया कि बिहार के सभी 341 बीएड कॉलेजों में इस साल सीईटी बीएड नामांकन के लिए कल 37,300 रिक्तियां थी। तीसरे चक्र के पूरा होने तक इसमें से कुल 36,659 अभ्यर्थियों का नामांकन किया जा चुका है।

14 अक्टूबर के बाद वेबसाइट पर सूचना

नामांकन से जुड़े सूचना को अभ्यर्थी 14 अक्टूबर के बाद वेबसाइट पर ऑनलाइन देख सकते हैं। उन्होंने बताया कि दरभंगा में ललित नारायण विश्वविद्यालय में अभी 58 सीट रिक्त है जबकि, पटना विश्वविद्यालय पटना में एक सीट, पूर्णिया विश्वविद्यालय पूर्णिया में 11 सीट, जयप्रकाश नारायण विश्वविद्यालय छपरा में 17 सीट, मुंगेर विश्वविद्यालय में 19 सीट, बीएन मंडल विश्वविद्यालय, मधेपुरा में 23 सीट बची है।

वीर कुंवर सिंह विश्वविद्यालय, आरा में 25 सीट, आर्यभट्ट ज्ञान विश्वविद्यालय, पटना में 36 सीट, तिलकामांझी भागलपुर विश्वविद्यालय, भागलपुर में 37 सीट, मिथिला विश्वविद्यालय, दरभंगा में 58 सीट, मौलाना मजहरूल हक अरबी फारसी विश्वविद्यालय, पटना में 76 सीट, बीआरए बिहार विश्वविद्यालय मुजफ्फरपुर में 86 सीट, मगध विश्वविद्यालय, बोधगया में 94 सीट और पाटलिपुत्र विश्वविद्यालय पटना में 160 रिक्तियां बची हुई है।

दरभंगा से आरफा प्रवीन की रिपोर्ट
दरभंगा में 12 ज्योतिर्लिंग पंडाल का निर्माण, 30 लाख की लगी लागत
दरभंगा के हसन चौक पर इस बार दक्षिण के स्वामी नारायण मंदिर के तर्ज पंडाल बना है। 41वां दुर्गा पूजनोत्सव नवरंग सार्वजनिक दुर्गा पूजा समिति हसन चौक द्वारा ये मनाया जा रहा है। इसको लेकर बीते 2 महीने से भव्य पूजा पंडाल महाराष्ट्र, बंगाल और बिहार के कारीगरों द्वारा तैयार किया जा रहा है। पूजा समिति के महासचिव राकेश कुमार दास ने बताया कि 500 मीटर की एरिया में विशाल पूजा पंडाल बन रहा है। सबसे पहले भक्त 12 ज्योतिर्लिंग का दर्शन करते हुए दक्षिण के स्वामी नारायण मंदिर के तर्ज पर बने पंडाल तक पहुंचेंगे। 30 लाख रुपए से अधिक की लागत से ये पंडाल तैयार किया जा रहा है। पूजा पंडाल के अंदर श्रद्धालुओं के लिए शुद्ध पेयजल और शौचालय, मेडिकल कैप की व्यवस्था रहेगी।

पूजा पंडाल और उसके इर्द-गिर्द 1 किलोमीटर तक कुल 40 सीसीटीवी के साथ ही ड्रोन से भी निगरानी रखी जाएगी। 150 सदस्यों की समिति सहित सभी स्थानीय लोग विधि व्यवस्था संभालने में जुटे हैं। मुख्य पुजारी देवेंद्र तिवारी ने बताया कि यहां वैष्णव पद्धति से माता की पूजा शारदीय नवरात्र में बड़े ही धूमधाम से की जाती है।

दरभंगा में पूजा पंडालों का जब भी जिक्र होता है तो, हसन चौक सबसे पहले लोगों का पसंद माना जाता है। 2022 में भी यहां 30 लाख रुपए की लागत से भव्य पंडाल का निर्माण हुआ था। वहीं, अध्यक्ष अशोक कुमार मंडल ने बताया कि पूजा पंडाल का निर्माण दिन-रात एक कर किया जा रहा है। सप्तमी से भक्त माता का दर्शन और पूजा पंडाल का लुत्फ उठा पाएंगे।

पूजा समिति के सचिव वरुण त्रिभुनारायण, कार्यकारी सचिव राम शर्मा, कोषाध्यक्ष सुजय कुमार आदि ने बताया कि हसन चौक पर हर साल बड़े ही धूमधाम से दुर्गा पूजा का आयोजन किया जाता है। जिसे बिहार ही नहीं राष्ट्रीय स्तर पर 2022 में सम्मानित किया जा चुका है।

दरभंगा से आरफा प्रवीन की रिपोर्ट
14 बीएड कॉलेजों का नैक  मूल्यांकन नहीं होने से क्रेडिट कार्ड के लाभ वंचित हैं छात्र
दरभंगा जिले में एनएलएमयू से जुड़े 14 बीएड कॉलेजों में नामांकित 1566 छात्र व छात्राओं को पढ़ाई के लिए बिहार स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड योजना से मिलने वाले 2.90 लाख रुपए के लाभ से वंचित होना पड़ा रहा है। क्योंकि इन कॉलेज में दूरस्थ शिक्षा निदेशालय को छोड़ किसी बीएड कॉलेज ने छात्र हित में अपने कॉलेज का नाम एमएनएसबीवाई पोर्टल पर दर्ज नहीं करवाया है। पोर्टल पर उसी कॉलेज का नाम दर्ज होगा जो या तो नैक मूल्यांकित हो या नैक मूल्यांकन के लिए आवेदन किया हो।

मालूम हो कि बिहार सरकार ने जून 2023 में बिहार स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड योजना के तहत इस योजना का लाभ देने के लिए बीएड के छात्रों को भी शामिल किया था। दो वर्षीय इस कोर्स की पढ़ाई के लिए 2.90 लाख रुपए की ऋण स्वीकृति का प्रावधान है।

जिला निबंधन एवं परामर्श केंद्र के स्त्रों के मुताबिक एमएनएसबीवाई पोर्टल पर कोई बीएड कॉलेज रजिस्टर्ड नहीं है। इस वजह से नामांकित छात्र व छात्राएं इस योजना का लाभ नहीं उठा पाएंगे। मात्र दूरस्थ शिक्षा निदेशालय ने एमएनएसबीवाई पोर्टल पर अपना नाम दर्ज करने की प्रक्रिया शुरू कर दी है। प्रावधान के मुताबिक बिहार स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड योजना का लाभ उसी बीएड कॉलेजों के छात्र व छात्राओं को मिलेगा जो या तो नैक मूल्यांकित है या नैक मूल्यांकन के लिए आवेदन किया है।

इस संबंध में एलएनएमयू के कुलपति प्रो संजय कुमार चौधरी ने बताया कि आपके माध्यम से मुझे यह जानकारी मिली है कि दरभंगा जिले के दूरस्थ शिक्षा निदेशालय को छोड़कर किसी बीएड कॉलेज ने एमएनएसपीवाई पोर्टल पर अपना नाम नहीं दर्ज करवाया है।

सभी बीएड कॉलेजों को ऐसा करना चाहिए ताकि छात्रों को बिहार स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड योजना का लाभ मिल सके। डीआरसीसी के प्रबंधक विकास कुमार ने बताया कि इन कॉलेजों में से किसी कॉलेज ने अपना नाम एमएनएसबीवाई पोर्टल पर दर्ज नहीं करवाया हैं।

दरभंगा से आरफा प्रवीन की रिपोर्ट
दरभंगा में लूट की योजना बना रहे 2 अपराधी गिरफ्तार
दरभंगा जिला के हायाघाट थाना क्षेत्र के औलियाबाद मोड़ से गुप्त सूचना के आधार पर पुलिस ने सोमवार की रात दो अपराधी को गिरफ्तार किया है। दोनों बदमाशों के पास से तीन पिस्टल, चार जिंदा कारतूस, दो मोबाइल फोन और एक स्प्लेंडर बाइक बरामद किया गया है। इस मामले की जानकरी सदर एसडीपीओ अमित कुमार मंगलवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस करके दी। इस दौरान बताया गया कि दोनों अपराधी औलियाबाद मोड़ पर अपराध की योजना बना रहे थे। इसी बीच टेक्निकल सेल की मदद से हायाघाट थाना ने दोनों को पकड़ लिया।

CSP से लूट की योजना बनाते हुए गिरफ्तार

इस संबंध में जानकारी देते हुए एसडीपीओ ने बताया कि एसटीएफ को गुप्त सूचना मिली कि दोनों अपराधी हायाघाट के एक सीएसपी से 8 से 10 लाख रुपए की लूट की घटना को अंजाम देने पहुंचे हैं। सूचना मिलने के बाद पुलिस हरकत में आई। एसआईटी की टीम, हायाघाट थानाध्यक्ष और टेक्निकल टीम की मदद से दोनों अपराधियों तक आसानी से पहुंच गई। पकड़े गए दोनों अपराधियों में से एक दरभंगा का है। जिसके कमर से दो पिस्टल बरामद की गई है।

वहीं, दूसरा अपराधी समस्तीपुर जिला के वारिसनगर थाना क्षेत्र का रहने वाला है। जिसके पास से एक पिस्टल, दो मोबाइल फोन और चार जिंदा कारतूस बरामद किया गया है। दोनों ही अपराधी अंतर जिला गिरोह के सदस्य हैं और इनका पहले से आपराधिक इतिहास रहा है। जिसको पुलिस खंगाल रही है।

आगे एसडीपीओ ने बताया कि लूट की घटना से पहले इन दोनों अपराधियों को पकड़ने के लिए टीम में शामिल पुलिस पदाधिकारियों को प्रोत्साहित किया जाएगा। दोनों ही अपराधियों के खिलाफ मामला दर्ज कर आगे की कार्रवाई की जा रही है।

दरभंगा से आरफा प्रवीन की रिपोर्ट
2 बाइक टकराई, गिरे तो पिकअप ने उड़ाया,3 की मौत
दरभंगा में सोमवार की सुबह सड़क हादसे में दो भाई समेत तीन की मौत हो गई है, जबकि एक घायल है। हादसे में दो की मौके पर ही मौत हो गई। एक को अस्पताल ले जाया गया। इलाज के दौरान उसकी मौत हो गई। प्रत्यक्षदर्शियों ने बताया कि बुलेट की एक बाइक से आमने-सामने की टक्कर हुई। टक्कर के बाद दोनों बाइक पर सवार युवक सड़क पर गिर गए। इसी वक्त करीब 70 किमी की रफ्तार से आ रहे पिकअप ने तीनों को रौंद दिया। इस दौरान तीसरी बाइक भी चपेट में आई और उसपर सवार युवक जख्मी हो गया।

मृतकों की पहचान रोहार निवासी संतोष यादव का बेटा चंदन कुमार यादव, चचेरा भाई प्रकाश कुमार (16), पिता उमेश यादव, ग्राम रोहार और कुशेश्वरस्थान निवासी शंभू विश्वकर्मा के बेटा सन्नी कुमार के रूप में हुई है। वहीं, घायल रोहार निवासी श्याम राम के बेटे संजीव राम की स्थिति गंभीर है। उसका इलाज डीएमसीएच के इमरजेंसी वार्ड में चल रहा है।

घटना बहेड़ा थाना क्षेत्र के बेनीपुर से बिरौल जाने वाले मुख्य मार्ग के मालिया चौक के पास की है।

चंदन यादव के पिता उमेश यादव ने बताया कि मेरा बेटा और भतीजा प्रकाश यादव पूजा कर एक ही बाइक से वापस घर लौट रहा था। इसी दौरान हादसा हो गया। फिर पिकअप ने रौंद दिया। फिलहाल शव को पोस्टमॉर्टम के लिए भेजा गया है।

चंदन यादव के पिता उमेश यादव ने बताया कि मेरा बेटा और भतीजा प्रकाश यादव पूजा कर एक ही बाइक से वापस घर लौट रहा था। इसी दौरान हादसा हो गया। फिर पिकअप ने रौंद दिया। फिलहाल शव को पोस्टमॉर्टम के लिए भेजा गया है।

दरभंगा से आरफा प्रवीन की रिपोर्ट
पीजी संस्कृत विभाग के सभागार में 23 अक्टूबर को कार्यक्रम, रूपरेखा तैयार करने के लिए हुई बैठक
ललित नारायण मिथिला विश्वविद्यालय के स्नातकोत्तर संस्कृत विभाग और डॉ. प्रभात दास फाउंडेशन के संयुक्त तत्वावधान में 23 अक्टूबर को “महाकवि श्रीहर्ष के काव्य में श्रृंगार रस-विमर्श” विषय पर निःशुल्क एकल व्याख्यान का आयोजन पीजी संस्कृत विभाग के सभागार में किया जाएगा। इसमें कामेश्वर सिंह दरभंगा संस्कृत विश्वविद्यालय के पूर्व कुलपति प्रोफेसर देवनारायण झा का एकल व्याख्यान होगा। व्याख्यान की रूपरेखा तैयार करने के उद्देश्य से स्नातकोत्तर संस्कृत विभागाध्यक्ष डॉ. घनश्याम महतो की अध्यक्षता में आयोजन समिति की एक महत्वपूर्ण बैठक संस्कृत विभाग में हुई।

सुबह 11 बजे से कार्यक्रम होगा

व्याख्यान के संयोजक डॉ. आरएन चौरसिया ने बताया कि कार्यक्रम का आयोजन 23 अक्टूबर को सुबह 11 बजे से प्रारंभ होगा, जिसमें भाग लेने के लिए इच्छुक शिक्षक, शोधार्थी, छात्र-छात्राएं और अन्य सभी संस्कृत- प्रेमी पंजीयन के लिए स्नातकोत्तर संस्कृत विभाग या संयोजक डॉ. चौरसिया के मोबाइल नं- 9905437636 पर संपर्क कर करा सकते हैं।

बैठक में फाउंडेशन के सचिव मुकेश कुमार , संयोजक डॉ. आरएन चौरसिया, विभागीय प्राध्यापिका- डॉ. ममता स्नेही और डॉ. मोना शर्मा, जेआरएफ- मनी पुष्पक घोष और सदानंद विश्वास, छात्र-जिग्नेश कुमार, रजनीश कुमार महतो और जनार्दन मुखिया, मंजू अकेला, योगेंद्र पासवान, उदय कुमार आदि उपस्थित थे।

दरभंगा से आरफा प्रवीन की रिपोर्ट
अजमेर से दरभंगा आने वाले यात्रियों के लिए अच्छी खबर
दुर्गा पूजा, दीपावली और छठ महापर्व में अजमेर से बिहार आने वाले और बिहार से अजमेर जाने वाले यात्रियों के लिए अच्छी खबर है। भारतीय रेलवे ने दरभंगा से अजमेर के लिए 8 ट्रिप पूजा स्पेशल ट्रेन चलाने की घोषणा की है। रेलवे ने ट्रेनों की समय सारणी
भी जारी कर दी है। गाड़ी संख्या 05537/38 दरभंगा दौराई पूजा स्पेशल ट्रेन 9 नवंबर से 28 दिसंबर तक प्रत्येक शनिवार को दरभंगा से चलेगी।
दरभंगा से दोपहर 13:15 बजे प्रस्थान कर अगली रात 22:30 बजे अजमेर के दौराई पहुंचेगी।


दौराई-दरभंगा पूजा स्पेशल ट्रेन 10 नवंबर से 29 दिसंबर तक प्रत्येक रविवार रात 23:45 बजे दौराई से प्रस्थान करेगी और तीसरे दिन सुबह 06:50 बजे दरभंगा पहुंचेगी।


यह ट्रेन अजमेर, किशनगढ़, जयपुर, बांदीकुई, भरतपुर, मथुरा, हाथरस सिटी, कासगंज, बदायूं, शाहजहांपुर, सीतापुर, गोण्डा, बस्ती, खलीलाबद, गोरखपुर, कप्तानगंज, नरकटियागंज, रक्सौल, बैरागनिया, सीतामढ़ी होते हुए दरभंगा पहुंचेगी। रेलवे द्वारा पूजा स्पेशल ट्रेनों को चलाए जाने से यात्रियों के बीच खुशी का माहौल देखा जा रहा है।

दरभंगा से आरफा प्रवीन की रिपोर्ट
दरभंगा में BPSC शिक्षिका की फंदे से लटकी मिली लाश
दरभंगा में रविवार को कुशेश्वरस्थान पूर्वी प्रखंड के तिलकेश्वर थाना क्षेत्र के उत्क्रमित मध्य विद्यालय सुघराइन की सहायक शिक्षिका ने फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली है। शिक्षिका का शव कमरे में फांसी के फंदे से लटका हुआ मिला है। वहीं, मौके से सुसाइड नोट बरामद किया गया है। मृतका की पहचान गोपालगंज की बीपीएससी शिक्षिका निक्की कुमारी के रूप में की गई। वो सुघराईन गांव में ही रेंट पर रहती थी। हालांकि पंखे से लटकी हुई लाश देखने के बाद लोग अनुमान लगा रहे हैं कि दुपट्टा से बांधकर उसे लटकाया गया है। लोग आशंका जाहिर कर रहे हैं कि यह हत्या हो सकती है।


छुट्‌टी पर जाने की हेड मास्टर से की थी बात

निक्की कुमारी के कमरे से बरामद हुए सुसाइड नोट में लिखा है कि 'मैं अपनी मर्जी से जान दे रही हूं, मुझे माफ़ करना मां।' वहीं, मामले के संबंध में हेड मास्टर ओजेर आलम ने बताया कि शनिवार की शाम 7 बजे मेरी शिक्षिका निक्की की बात हुई थी। उसने बताया कि उसे छुट्टी चाहिए। इस पर हेड मास्टर ने अन्य शिक्षक के छुट्टी पर जाने की बात कही। उसके बाद शिक्षिका ने 9 अक्टूबर के बाद छुट्टी पर जाने की बात बताई थी।

इस घटना को लेकर तिलकेश्वर थानाध्यक्ष अंकित चौधरी ने बताया कि सूचना मिली है घटनास्थल पर पहुंचकर मामले की जांच की जा रही है। जांच के बाद मौत का खुलासा किया जाएगा। जांच में ही पता चलेगा कि ये ये आत्म हत्या है या किस वजह से हत्या की गई है।

दरभंगा से आरफा प्रवीन की रिपोर्ट
दरभंगा में 18-20 अक्टूबर को शुरू होगा कार्यक्रम, विजेताओं को बिहार राज्यपाल करेंगे पुरस्कृत
कामेश्वर सिंह दरभंगा संस्कृत विश्वविद्यालय में तीन दिवसीय चंद्रगुप्त साहित्य महोत्सव 2024 की शुरुआत 18 अक्टूबर को सुबह 11 बजे से होगी। जिसकी जानकारी चंद्रगुप्त साहित्य महोत्सव के सह-संयोजक राकेश कुमार झा द्वारा दी गई है। इस सम्बन्ध में जानकारी देते हुए बताया गया है कि महोत्सव का उद्घाटन बिहार राज्यपाल सह कामेश्वर सिंह संस्कृत विश्वविद्यालय दरभंगा के कुलाधिपति राजेंद्र विश्वनाथ आर्लेकर करेंगे।

जिसको लेकर र विश्वविद्यालय प्रशासन ने सभी महाविद्यालय के प्रधान व समन्वयकों से अपने शिक्षकों, छात्र-छात्राओं, शोधकर्ताओं और प्रोफेसर को इस प्रतियोगिता के बारे में सूचित करने का अनुरोध किया है।

निबंध लिखकर ईमेल करेंगे प्रतिभागी


भारत की संकल्पना तथा शिक्षक, शोधकर्ताओं और प्राध्यापकों के लिए भारतीय इतिहास में स्व पुनर्जागरण विषय पर 10 अक्टूबर तक अपनी हिंदी में लिखी आलेख को कम से कम 2000 शब्दों में। वहीं, शिक्षक, शोधकर्ता व प्रोफेसर कम से कम 3000 शब्दों में पर भेज सकते हैं। प्रतियोगिता में भाग लेने के लिए 100 रुपए का शुल्क जमा करके ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन करना होगा। ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन अभ्यर्थी स्वयं https://www.chandraguptlitfest.com/ पर जाकर कर सकते हैं। प्रतियोगिता के दोनों श्रेणियों में शामिल शीर्ष तीन-तीन श्रेष्ठ लेख के लिए बिहार के राज्यपाल पुरस्कृत करेंगे।

10 अक्टूबर तक जमा करना होगा निबन्ध

बताया कि इसको लेकर विश्वविद्यालय से संबंध में सभी महाविद्यालय और विभाग के अधिकारियों को आमंत्रण पत्र भेजा गया है। प्रतिभागियों ने अपना रजिस्ट्रेशन करना शुरू कर दिया है। दोनों ही विषयों के निबंध लिखकर 10 अक्टूबर तक अभ्यर्थियों को ऑनलाइन जमा कर देना है। बता दें कि विश्वविद्यालय के इस तीन दिवसीय चंद्रगुप्त साहित्य महोत्सव 2024 के आयोजन को सफल बनाने के लिए जोर-जोर से तैयारी कर रही है। इसमें दरभंगा जिला के अलावे समस्तीपुर मधुबनी, सहरसा और सुपौल जिले के महाविद्यालय के अभ्यर्थी प्रतिभाग कर रहे हैं। जिसमें महाविद्यालय के छात्र- छात्राए, शिक्षक, प्रोफेसर और शोधकर्ता शामिल हैं।


दरभंगा से आरफा प्रवीन की रिपोर्ट
44 साल से अधिक काम करने वाले कर्मियों पर कार्रवाई
ललित नारायण मिथिला विश्वविद्यालय दरभंगा के कुलसचिव डा. अजय कुमार पंडित ने अधिसूचना जारी करते हुए संबंधित सभी कॉलेजों के प्रधानाचार्य और विश्वविद्यालय विभागाध्यक्षों को सूचित किया है कि निर्धारित आयु और अवधि के बाद सेवा देना वालों पर कार्रवाई की प्रक्रिया शुरू की जाएगी। दरभंगा बिहार राज्य विश्वविद्यालय अधिनियम 1976 में शिक्षकोत्तर कर्मियों की सेवानिवृति की आयु 62 वर्ष निर्धारित है। किसी भी परिस्थिति में सेवा अवधि 44 वर्ष से अधिक नहीं हो सकती है। जिसको लेकर बिहार सरकार ने सभी विभागों के नाम जारी पत्र में स्पष्ट कर चुकी है।

सेवा अवधि से अधिक नौकरी करने वालों से वसूली जाएगी राशि

कुलसचिव द्वारा प्राप्त जानकारी के अनुसार विश्वविद्यालय के अधीन स्नातकोत्तर विभागों, सभी अंगीभूत और संबंध महाविद्यालयों के वैसे शिक्षकों व शिक्षकेत्तर कर्मियों का वेतन भी अवरुद्ध किया जा सकता है, जिनकी सेवा 44 वर्ष पूरी हो चुकी है। इसके साथ स्थापना शाखा को निदेशित किया गया है कि ऐसे चिह्नित कर्मियों की सूची तैयार कर विश्वविद्यालय के वित्त विभाग को उपलब्ध करा दें। इसके अलावा ये भी बात सामने आई है कि जो कर्मी उक्त अवधि तक नौकरी कर चुके हैं उनसे वेतनादि की राशि की वसूली भी की जा जाएगी।

बिहार सरकार ने पहली ही जारी कर चुकी लिस्ट

बता दें कि बिहार सरकार ने बहुत पहले ही सभी विभागों के नाम जारी पत्र में स्पष्ट कर चुकी है कि 18 साल से कम उम्र में किसी को नौकरी नहीं दी जा सकती है। ऐसे में कोई भी कर्मी अधिकतम 44 साल ही अपनी सेवा दे सकता है। नियमानुसार, शिक्षक कोटि 65 साल और शिक्षकेतर कर्मी 62 साल या फिर अधिकतम 44 वर्ष ही नौकरी कर सकते हैं। साथ ही यह भी प्रावधान है कि अगर इस अधिकतम अवधि से अधिक कोई भी कर्मी सेवा देता है और उनको दी जाती है तो संबंधित कर्मी और पदाधिकारी से ही इस राशि की वसूली की जाएगी।

दरभंगा से आरफा प्रवीन की रिपोर्ट