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झारखंड के सभी 14 लोकसभा सीटों पर NDA और INDIA आमने-सामने,जीत का दोनो कर रहें हैँ दावे,जानिये क्या है दोनो का मुद्दा...?

झारखंड डेस्क

रांची :झारखंड में लोकसभा तक पहुँचने के लिए रणभेरी बज चुकी है। इंडिया और एनडीए   

के योद्धा रण के लिए मैदान में तैयार हैँ। लेकिन जीत किनकी होगी और हार किनकी इसको लेकर जानता भी मंथन कर रही है ,मैदान में उतरे योद्धा भी मैराथन् कर रहे हैँ।

झारखंड में लोकसभा की 14 जीतने है।सभी 14 सीटों पर दो मुख्य गठबंधन एनडीए और इंडिया ब्लॉक ने अपने-अपने प्रत्याशियों के नामो की घोषणा कर दी है। जो उम्मीद पहले से थी लगभग उसी तरह से इंडिया ब्लॉक की कोशिश यह हुई है कि अलग-अलग लोकसभा सीट पर मुकाबला आमने-सामने का हो यानी भाजपा या आजसू के उम्मीदवार के मुकाबले में विपक्षी दलों की ओर से भी एक मजबूत उम्मीदवार हो और भाजपा विरोधी वोटों के बिखराव को रोका जा सके।

कुछ प्रमुख नेता निर्दलीय उतरे हैं चुनाव मैदान में राज्य में इंडिया ब्लॉक में चार राजनीतिक पार्टियां कांग्रेस, झामुमो, राजद और सीपीआई माले को जगह मिली है। इन सबके बीच 7-5-1-1 फॉर्मूले पर सीट शेयरिंग भी हुई है। लेफ्ट की दो अन्य पार्टियां सीपीआई और सीपीएम को झारखंड इंडिया में जगह नहीं मिलने की वजह से कुछ स्थानों पर दोनों दल अपने-अपने प्रत्याशी उतार जरूर रहे हैं, लेकिन इस बार जो स्थितियां बन रही हैं उसमें मुख्य मुकाबला एनडीए और इंडिया के बीच ही होता दिख रहा है।

कुछ नेता जैसे लोहरदगा से चमरा लिंडा, राजमहल से लोबिन हेंब्रम अपना कितना प्रभाव छोड़ पाएंगे यह तो चार जून को मतगणना के बाद ही पता चल पाएगा।

अधिकतर सीटों पर सीधा मुकाबला


राज्य की राजनीति को नजदीक से देखने और समझने वालों का मानना है कि टिकट बंटवारे में इंडिया ब्लॉक द्वारा की गई छोटी-मोटी गलतियों को छोड़ दें तो इस बार दोनों पक्षों द्वारा पूरी संजीदगी से अपने-अपने प्रत्याशी उतारे हैं। इसलिए इस बार चुनावी मुकाबला आमने-सामने का होगा। एक तरफ इंडिया ब्लॉक के उम्मीदवार होंगे तो दूसरे सिरे पर एनडीए ब्लॉक के प्रत्याशीजो अपने कोर वोट को एकजुट रख पाएगा उनकी जीत सुनिश्चित होगी ।

 इस बार भाजपा ने ओबीसी को अपनी ओर करने की पूरी कोशिश की है। उन्होंने कहा कि संभवतः भाजपा के रणनीतिकार अगड़े वोटों पर अपनी स्वभाविक हिस्सेदारी मान कर पिछड़ों को लुभाने के प्रयास किया है और सामान्य सीटों पर ओबीसी को प्राथमिकता दी है। इसका कितना लाभ भाजपा-आजसू को मिलता है इस पर नतीजा निर्भर करेगा।

2019 के लोकसभा चुनाव में 14 में से 12 सीटों पर एनडीए ने जीत दर्ज की थी। 2019 के लोकसभा चुनाव में झारखंड की 14 लोकसभा सीट में से राजमहल और सिंहभूम को छोड़ कर सभी 12 सीटों पर एनडीए (भाजपा और आजसू) ने जीत दर्ज की थी। वहीं 2019 में राजमहल सीट से झामुमो उम्मीदवार विजय हांसदा और सिंहभूम से कांग्रेस उम्मीदवार के रूप में गीता कोड़ा की जीत हुई थी । इस बार गीता कोड़ा सिंहभूम लोकसभा सीट से भाजपा उम्मीदवार हैं और झामुमो की जोबा मांझी से उनका सीधा मुकाबला है ।

एक नजर राज्य की 14 लोकसभा सीटों पर


किसके-किसके बीच मुख्य मुकाबला होने की संभावना

राजमहल लोकसभा सीट


विजय हांसदा-झामुमो

ताला मरांडी-भाजपा

लोबिन हेंब्रम-निर्दलीय (घोषणा कर चुके हैं)

दुमका लोकसभा सीट


नलिन सोरेन- झामुमो

सीता लोकसभा

 गोड्डा लोकसभा सीट


प्रदीप यादव- कांग्रेस

निशिकांत दुबे-भाजपा

गिरिडीह लोकसभा सीट


मथुरा प्रसाद महतो- झामुमो

चंद्र प्रकाचौधरी-आजसू

जयराम महतो निर्दलीय

कोडरमा लोकसभा सीट


विनोद सिंह-सीपीआई माले

अन्नपूर्णा देवी-भाजपा

धनबाद लोकसभा सीट


अनुपमा सिंह-कांग्रेस

ढुल्लू महतो-भाजपा

हजारीबाग लोकसभा सीट


जेपी पटेल-कांग्रेस

मनीष जायसवाल-भाजपा

रांची लोकसभा सीट


यशस्विनी सहाय- कांग्रेस

संजय सेठ- भाजपा

लोहरदगा लोकसभा सीट


सुखदेव भगत- कांग्रेस

समीर उरांव- भाजपा

चमरा लिंडा -निर्दलीय

चतरा लोकसभा सीट


केएन त्रिपाठी- कांग्रेस

कालीचरण सिंह - भाजपा

पलामू लोकसभा सीट


ममता भुईयां- राजद

वीडी राम- भाजपा

खूंटी लोकसभा सीट


कालीचरण मुंडा- कांग्रेस

अर्जुन मुंडा - भाजपा

सिंहभूम लोकसभा सीट


जोबा मांझी- झामुमो

गीता कोड़ा- भाजपा

जमशेदपुर लोकसभा सीट


समीर मोहंती- झामुमो

बिद्युत बरण महतो- भाजपा

सभी 14 लोकसभा सीटों पर भाजपा ने किया एनडीए की जीत का दावा


झारखंड भाजपा के नेता प्रदीप सिन्हा कहते हैं कि राज्य में इस बार मुकाबला 2019 से भी बेहतरीन होगा. इस बार एनडीए पूरी तरह से इंडिया का सफाया करेगा. उन्होंने राजमहल और सिंहभूम सीट पर भी भाजपा की जीत का दावा किया है.

इस बार कांग्रेस का मुद्दा


इलेक्टोरल बांड घोटाला, महंगाई और बेरोजगारी 

वहीं कांग्रेस के प्रदेश महासचिव राकेश सिन्हा कहते हैं कि भाजपा सभी सीटें जीतने की मुगालते में है. यह 2019 नहीं, बल्कि 2024 है. पीएम मोदी और भाजपा को अपने 10 साल के कार्यकाल की उपलब्धियां बतानी होगी. इसके साथ-साथ बेरोजगारी, महंगाई, इलेक्टोरल बांड्स मामले पर जनता के सवालों का जवाब देना होगा. कांग्रेस नेता ने कहा कि 2019 में पुलवामा और बालाकोट की वजह से राष्ट्रवाद को मुद्दा बनाकर मोदी सत्ता में आ गए थे. इस बार मुद्दा जनता से जुड़ा है.

भाजपा का मुद्दा


भाजपा का झारखंड मुद्दा ,भ्रस्ट्राचार, परिवार बाद,

कल्पना सोरेन: विषम परिस्थियों में शुरु हुई राजनितिक सफर की शुरुआत ,कुशल नेतृत्व का दिया परिचय,आइये जानते हैँ कल्पना सोरेन की बायोग्राफी

झारखंड डेस्क

हेमंत सोरेन को जेल जाने के बाद कल्पना सोरेन सक्रिय राजनीति में कदम रखी। हलाकि इनका इस सफर की शुरुआत विषम परिस्थियों में हुई परन्तु इनके यह आगाज इतना शानदार रहा कि वह राजनीति में बहुत आगे तक जाने की क्षमता रखती है।

वैसे जैसे जैसे हेमंत सोरेन पर शिकंजा कसने कि तैयारी चल रही थी वैसे हीं उनके चुनावी सफर की शुरुआत कि तैयारी के लिए पृष्ठिभूमि भी तैयार कर ली गयी थी। यूं तो पक्की खबर कई महीनों से चल रही थी, बस आज उस खबर पर मुहर लगी है।

 अब गांडेय विधानसभा के उप चुनाव में कल्पना सोरेन को JMM ने अपना प्रत्याशी घोषित कर दिया है। और यहां से जीत कर वे अपनी राजनीति पारी कि स्थायी रूप से शुरु करने वाली है।

 ऐसे में अचानक चर्चा में आयी और राजनीति में प्रभावी ढंग से शुरुआत कर लोगों के बीच अपने दमदार् उपस्थिति दर्ज कराने के बाद आम आदमी कल्पना सोरेन के बारे में जानना चाहते हैं। 

सबसे पहले हम आपको बताते हैं कि आखिर कल्पना सोरेन के लिए गांडेय सीट ही क्यों चुनी गयी। इसकी सबसे बड़ी वजह है, कल्पना सोरेन का मूल रूप से झारखंड का निवासी ना होना।

कल्पना सोरेन मूल रूप से उड़ीसा की है


दरअसल कल्पना सोरेन का जन्म स्थान ओड़िशा है, लिहाजा वो अनुसूचित जनजाति से ताल्लुक रखने के बावजूद झारखंड में अनुसूचित जनजाति का लाभ नहीं ले पायेंगी, इसलिए उनके लिए गांडेय की सामान्य सीट चुनी गयी। झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन की पत्नी कल्पना सोरेन का ताल्लुक ओडिशा के मयूरभंज जिले में रहने वाले परिवार से हैं। 

हालांकि कल्पना सोरेन का जन्म रांची में हुआ। 1976 में जन्मीं कल्पना सोरेन ने ग्रेजुएशन की पढ़ाई रांची में की थीं। पिछले कई वर्षों से कल्पना सोरेन रांची में एक प्राइवेट स्कूल का संचालन करती हैं।हालांकि हेमंत सोरेन के जेल जाने के बाद उनकी स्कूल संचालन में सक्रियता थोड़ी कम हुई है, लेकिन अभी भी उनका संचालित हो रहा है।

2006 में हेमंत के साथ परिण्य सूत्र में बंधी


7 फरवरी 2006 को हेमंत सोरेन के साथ शादी की बंधन में बंधी कल्पना सोरेन पहली बार सुर्खियों में हैं। दो बेटों की देखरेख करने वाली कल्पना सोरेन अब तक राजनीति से दूरियां बनाए रखती थीं, लेकिन समय-समय पर सीएम हेमंत सोरेन के साथ कई सार्वजनिक कार्यक्रमों में भी नजर आती थीं। हेमंत सोरेन और कल्पना सोरेन की शादी अरेजेंड मैरिज थी और दोनों परिवारों की सहमति से बड़े ही धूमधाम से शादी हुई थी। उस वक्त हेमंत सोरेन के पिता शिबू सोरेन केंद्रीय कोयला मंत्री थे।

कितनी सम्पति की मालकीन है कल्पना


हेमंत सोरेन की ओर से वर्ष 2019 के चुनाव में निर्वाचन आयोग को दी गई जानकारी के अनुसार कल्पना सोरेन के पास 94 लाख कैश थी। जबकि बैंक खाते में 2 लाख 55 हजार रुपए हैं। एचएस फ्यूल में कल्पना सोरेन की ओर से 2 लाख रुपये निवेश किया गया है। वहीं डाकघर के खातों में 6 लाख 79 लाख रुपये जमा हैं। इसके अलावा एलआईसी और आईसीआईसीआई की 24 लाख की पॉलिसीज ले रखी है।

 वहीं हेमंत सोरेन की कुल संपत्ति 8 करोड़ 51 लाख 74 हजार रुपये की संपत्ति थी। उनके नाम पर एक मारुति सियाज कार भी है, जिसकी कीमत 5 लाख 50 हजार रुपये बताई गई है।कल्पना सोरेन के बैंक अकाउंट और अन्य निवेश के अलावा 24 लाख 85 हजार रुपये की कीमत की गोल्ड ज्वैलरी और 9 लाख रुपये से ज्यादा की चांदी है। इसके अलावा कल्पना सोरेन के नाम तीन कॉमर्शियल बिल्डिंग्स हैं, जिसकी कीमत 4.87 करोड़ रुपये बताई गई है।

हेमंत सोरेन के जेल जाने के बाद शुरु हुई राजनितिक सफर


कल्पना सोरेन लगातार राजनीतिक कार्यक्रमों में बढ़चढ़ कर हिस्सा लेती हैं। माना जाता है कि परिवार के भीतर महत्वपूर्ण भूमिका हैं। राजनीतिक तौर पर बेहद सक्रिय परिवार के बीच रहने के बावजूद कल्पना राजनीतिक तौर पर सक्रिय रहने से खुद को बचा लेती हैं। हालांकि सामाजिक कार्यक्रमों में उनकी मौजूदगी की वजह से वो लोगों के बीच काफी लोकप्रिय हैं।हेमंत सोरेन की पत्नी कल्पना सोरेन को सीएम बनाने की चर्चा जेएमएम विधायक सरफराज अहमद के त्यागपत्र के बाद से ही हो रही थी। 

उस समय ऐसा कहा गया था कि कल्पना सोरेन के लिए आगे का रास्ता बनाने के लिए सरफराज अहमद की गांडेय सीट खाली कराई गई है। कल्पना सोरेन मूल रूप से ओडिशा की रहने वाली है, इसलिए वो एसटी की सुरक्षित सीट से चुनाव नहीं लड़ सकती है। यही कारण है कि कल्पना सोरेन के लिए सुरक्षित सीट का चुनाव किया गया है।

पांचवें चरण के लोकसभा चुनाव के लिए झारखंड के चतरा, कोडरमा और हजारीबाग के लिए भी अधिसूचना जारी, शुक्रवार। नामांकन शुरु,20 को को होगा मतदान


झारखंड डेस्क

लोकसभा चुनाव के पांचवें चरण के लिए अधिसूचना जारी हो गयी।इसके साथ ही झारखंड में तीन लोकसभा सीटों - चतरा, कोडरमा और हजारीबाग के लिए नामांकन पत्र भरना शुक्रवार को शुरू हो गया। दस्तावेज जमा करने के पहले दिन भाजपा उम्मीदवार कालीचरण सिंह ने चतरा लोकसभा क्षेत्र के लिए अपना नामांकन पत्र दाखिल किया। तीनों सीटों पर 20 मई को मतदान होगा।

अपना नामांकन दाखिल करने से पहले पत्रकारों से बात करते थे। कालीचरण सिंह ने कहा, कि "मुझ पर विश्वास जताने के लिए मैं पार्टी का आभारी हूं। मुझे यकीन है कि लोग भाजपा के पक्ष में वोट डालेंगे, क्योंकि वे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में देश का विकास चाहते हैं।" 

दरअसल, भाजपा ने अपने मौजूदा सांसद सुनील कुमार सिंह की जगह कालीचरण सिंह को मैदान में उतारा है, जिन्होंने 2019 में कांग्रेस के मनोज कुमार यादव को 3.77 लाख से अधिक वोटों के अंतर से हराया था। चुनाव अधिकारी ने बताया कि नामांकन दाखिल करना सुबह 11 बजे शुरू होता है और पांचवें चरण के मतदान की प्रक्रिया की आखिरी तारीख 3 मई तक हर दिन दोपहर 3 बजे समाप्त होता है।

नामांकन पत्रों की जांच 4 मई को होगी और ऐसे दस्तावेज वापस लेने की अंतिम तिथि 6 मई है।

तीन लोकसभा क्षेत्रों में 28.29 लाख महिलाओं सहित 58.22 लाख से अधिक मतदाता अपने मताधिकार का प्रयोग करने के पात्र हैं। कालीचरण के अलावा बीजेपी ने केंद्रीय मंत्री अन्नपूर्णा देवी को कोडरमा से और विधायक मनीष जयसवाल को हज़ारीबाग लोकसभा सीट से मैदान में उतारा है।

विपक्षी गुट INDIA से, कांग्रेस ने विधायक जेपी पटेल, जो हाल ही में भाजपा से आए हैं, को हज़ारीबाग से और पूर्व विधायक केएन त्रिपाठी को चतरा संसदीय क्षेत्र से नामांकित किया है. विपक्ष की सहयोगी पार्टी सीपीआई-एमएल (एल) ने कोडरमा सीट से अपने बगोदर विधायक विनोद कुमार सिंह को उम्मीदवार बनाया हैँ

हेमंत सोरेन की अंतरिम जमानत की याचिका,खारिज ,वे अपने चाचा के श्राद्ध कार्य में भाग लेने के लिए 13 दिनों कीऔपबंधिक जमानत की मांग की थी।


झारखंड डेस्क

हेमंत सोरेन की अंतरिम जमानत की याचिका ईडी कोर्ट ने खारिज कर दी है। उन्होंने अपने चाचा के श्राद्ध कर्म में शामिल होने के लिए 13 दिनों की औपबंधिक जमानत की मांग की थी। जिसका विरोध EDकी ओर से किया गया था।

झारखंड के पूर्व सीएम हेमंत सोरेन को झटका, PMLA कोर्ट ने खारिज की अंतरिम जमानत याचिका 

झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को शनिवार को उस वक्त बड़ा झटका लगा जब रांची की विशेष PMLA (प्रिवेंशन ऑफ मनी लॉन्ड्रिंग एक्ट) अदालत ने भूमि घोटाला मामले में उन्हें अंतरिम जमानत देने से इनकार कर दिया। 

हेमंत सोरेन ने अपने चाचा के श्राद्ध में शामिल होने के लिए कोर्ट से 13 दिनों की औपबंधिक जमानत (अंतरिम जमानत) की मांग की थी, जिसका विरोध ईडी की ओर से किया गया। जिसके बाद इस मामले में सुनवाई करने के बाद कोर्ट ने उन्हें जमानत देने से इनकार कर दिया।

बता दें कि झारखंड में भूमि घोटाले से संबंधित मनी लॉन्ड्रिंग के एक मामले में प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने झारखंड मुक्ति मोर्चा (झामुमो) के नेता और पूर्व मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को गिरफ्तार किया था और वे करीब तीन महीने से न्यायिक हिरासत में जेल में हैं।

आज सुबह राजधानी रांची में स्कूली बच्चों को लेकर जा रही बस पलटी,15 बच्चे घायल,एक को लगी सर में चोट

झारखंड डेस्क

राजधानी रांची में आज सुबह एक बड़ा हादसा हो गया। बच्चों से भरी एक स्कूल बस पलट गई।

 पुलिस ने बताया कि हादसे के समय बस में 30 बच्चे थे। मंदार के सेंट मारिया स्कूल से करीब 100 मीटर दूर एक मोड़ पर बस पलट गई। इस हादसे में 15 बच्चे घायल हो गए हैं।जिसमे एक बच्चे की सिर में चोट लगी है।

मंदार पुलिस स्टेशन के प्रभारी ने बताया कि इस हादसे में लगभग 15 बच्चे घायल हुए हैं। उन्हें मिशन अस्पताल में भर्ती कराया गया है। बस पलटने के बाद एक बच्चे के सिर में चोट भी लग गई है। उसका सीटी स्कैन किया जा रहा है। पुलिस अधिकारी ने आगे बताया कि अन्य सभी बच्चों की स्थिति ठीक है।

ड्राइवर का दोष, बस चलाते समय कर रहा था फोन से बात

एक बच्चे के माता-पिता ने आरोप लगाया कि बस तेज रफ्तार में थी और हादसे के समय ड्राइवर फोन पर किसी से बात कर रहा था। उन्होंने आगे बताया कि आज बस अपने टाइम से 45 मिनट लेट थी। इस वजह से ड्राइवर काफी तेज स्पीड में बस चला रहा था। जब बस पलटी तब वह फोन पर बात कर रहा था।

पुलिस ने बताया कि दुर्घटना के बाद बस का ड्राइवर भाग गया। उसकी तलाश की जा रही है। उन्होंने बताया कि छात्र के माता-पिता के आरोपों की पुष्टि करने के अलावा दुर्घटना के सही कारण का पता लगाने के लिए जांच चल रही है। जानकारी के मुताबिक, हादसे के समय बस में 30 बच्चे थे। बस पलटने से 15 बच्चे घायल हो गए हैं। इलाज के लिए उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया है। ड्राइवर फरार है, जिसकी तलाश की जा रही है।

रांची में उड़ीसा से मंगाए गये चूजे से आये थे बर्ड फ्लू ू,केंद्रीय जाँच टीम ने दी इसकी जानकारी,पांच कर्मी को अभी भी रखा गया है क्वॉरेंटाइन में

झारखंड डेस्क

झारखंड की राजधानी रांची में मुर्गी में पाए गये बर्ड फ्लू  को लेकर केंद्रीय टीम ने जांच की ।उसके बाद यह बात सामने आई है कि रांची के क्षेत्रीय कुक्कुट प्रक्षेत्र होटवार में बर्ड फ्लू (एवियन इंफ्लूएंजा) का संक्रमण ओडिशा से पहुंचा था। 

जांच के दौरान पता चला कि होटवार प्रक्षेत्र में ओडिशा से कुछ चूजे मंगाए गए थे। इनमें से लगभग दो दर्जन चूजों की मौत 12 और 13 अप्रैल को हो गई थी।

मृत चूजों का सैंपल कलेक्ट कर कोलकाता भेजा गया था, जहां जांच में बर्ड फ्लू का संदेह होने पर जांच के लिए सैंपल को राष्ट्रीय उच्च सुरक्षा पशु रोग संस्थान (आईसीएआर) भोपाल भेजा गया। वहां जांच में 22 अप्रैल को बर्ड फ्लू की पुष्टि हुई। हालांकि, 16 अप्रैल के बाद से किसी भी चूजे की मौत नहीं हुई है।

इधर, संक्रमण का प्रसार रोकने के लिए दो दिन पहले होटवार प्रक्षेत्र की पक्षियों को नष्ट किया गया था। नष्ट करने वाले पांच कर्मियों को कोरंटाइन कर उन्हें दवाएं दी जा रही हैं। शनिवार को रिम्स और जिला सर्विलांस इकाई की टीम होटवार जाकर संदिग्धों का सैंपल कलेक्ट करेगी।

 इधर, फ्लू की किसी भी संभावना से निपटने के लिए केंद्रीय टीम ने शुक्रवार को रिम्स और सदर अस्पताल में तैयारियों का जायजा लिया। वहां ऑक्सीजन बेड और दवाओं की जानकारी ली।

पांच कर्मी क्वॉरेंटाइन में

एवियन इंफ्लूएंजा (बर्ड फ्लू) आउटब्रेक की जांच एवं एहतियाती उपायों को लेकर रांची पहुंची केंद्रीय टीम ने शुक्रवार कोच् रिम्स एवं सदर अस्पताल का निरीक्षण किया। दूसरी ओर, संक्रमण के प्रसार को रोकने को लेकर दो दिन पूर्व होटवार फार्म के सभी पक्षियों का निष्तारण किया गया था। निष्तारण करने वाले पांच कर्मियों को क्वॉरेंटाइन कर उन्हें दवाइयां दी जा रहीं हैं।

शनिवार को रिम्स माईक्रोबायोलॉजी विभाग के साथ जिला सर्विलांस इकाई की टीम होटवार जाकर सभी संदिग्धों का सैंपल कलेक्ट करेगी। विभाग का निर्देश है कि निष्तारण के काम में लगे कर्मियों के साथ संक्रमित पक्षियों के संपर्क में आने वाले सभी लोगों एवं उनके परिवार के लोगों का भी कांटैक्ट ट्रेसिंग के आधार पर सैंपल कलेक्ट किया जाए।

ऑक्सीजन बेड व दवा की ली जानकारी

टीम ने सदर अस्पताल में संक्रमितों के उपचार को लेकर बनाए गए आयसोलेशन वार्ड की व्यवस्था देखी। साथ ही में ऑक्सीजन बेड, पीपीई किट, मास्क, एटीवायरल व अन्य दवाओं की उपलब्धता व ऑक्सीजन आदि की जानकारी ली। उसके बाद टीम रिम्स पहुंची।

लैब की स्थिति भी देखी

टीम रिम्स के माईक्रोबायोलॉजी विभाग जाकर टीम ने वहां संचालित लैब की व्यवस्था भी देखी। साथ ही वहां संदिग्धों की जांच को लेकर वीटीएम किट एवं अन्य संसाधनों की उपलब्धता की भी जानकारी ली।

बता दें कि रांची में बर्ड फ्लू की पुष्टि होने के बाद स्वास्थ्य मंत्रालय, भारत सरकार की ओर से विशेषज्ञों के तीन सदस्यीय दल को रांची भेजा गया है। टीम में नेशनल सेंटर फॉर डिजीज कंट्रोल (एनसीडीसी), नई दिल्ली के एपिडेमोलॉजिस्ट डॉ नीरज कुमार, एनसीडीसी के डिप्टी डायरेक्टर डॉ बिभाष नंदी एवं नई दिल्ली के सीनियर चेस्ट स्पेशलिस्ट डॉ रजनीश गुप्ता शामिल थे। टीम ने गुरुवार को स्टेट एपिडेमोलॉजिस्ट डॉ प्रवीण कर्ण के साथ होटवार के प्रभावित क्षेत्रों का गहन मुआयना किया था। प्रभावित क्षेत्रों में संक्रमण प्रसार को नियंत्रित करने को लेकर किए जा रहे एहतियाती उपायों का भी जायजा लिया था। यह टीम बर्ड फ्लू के संक्रमण के प्रसार को रोकने को लेकर सार्वजनिक स्वास्थ्य उपायों, प्रबंधन दिशा-निर्देशों, प्रोटोकॉल आदि के संदर्भ में राज्य सरकार की आवश्यकतानुसार सहायता करेगी। यहां से लौटने के बाद टीम अपनी रिपोर्ट स्वास्थ्य सेवा महानिदेशालय, स्वास्थ्य मंत्रालय, भारत सरकार को देगी।

न्यूनतम मजदूरी की दरों में रिवीजन को लेकर श्रम नियोजन एवं प्रशिक्षण विभाग एक की कमेटी गठित

न्यूनतम मजदूरी की दरों में की गई बढ़ोत्तरी के रिवीजन करने को लेकर झारखंड चैंबर के आग्रह पर श्रम नियोजन एवं प्रशिक्षण विभाग ने कमेटी गठित की है। 

स‍मिति का अध्‍यक्ष श्रमायुक्त को बनाया गया है। समिति में संयुक्त श्रमायुक्त सह निदेशक न्यूनतम मजदूरी के अलावा झारखंड चैंबर, आदित्यपुर स्मॉल इंडस्ट्रीज एसोसियेशन, सेंटर ऑफ इंडियन ट्रेड यूनियन, इंडियन नेशनल ट्रेड यूनियन कांग्रेस को सदस्य बनाया गया है।

यह समिति न्यूनतम मजदूरी अधिनियम 1948 के प्रावधानों के अनुरूप मजदूरी दर के निर्धारण/संशोधन के लिए तार्किक तथ्य की सिफारिश करेगी। 

इसके लिए विभिन्न राज्यों में मजदूरी दर निर्धारण करने के लिए अपनायी गई प्रक्रियाओं को ध्यान में रखा जायेगा। उप समिति द्वारा अपना विस्तृत प्रतिवेदन एक माह के अंदर प्रस्तुत किया जायेगा।

चैंबर अध्यक्ष किशोर मंत्री ने इस निर्णय के लिए विभागीय सचिव मुकेश कुमार के प्रति आभार जताया। कहा कि राज्य के व्यापारियों और उद्यमियों के अनुकूल न्यूनतम मजदूरी दर के निर्धारण में उचित निर्णय लिये जा सकेंगे।

विदित हो कि चैंबर ने 16 अक्‍टूबर, 2023 को ही विभाग को अपनी आपत्ति और सुझाव दि‍या था। कहा था कि पूर्व की दर से अधिकतम 5 फीसदी वृद्धि ही की जाय। चिंतनीय है कि हमारे प्रतिवेदन पर बिना विचार किये या वार्ता किये, नई दर को अव्यवहारिक रूप से प्रभावी कर दिया गया है। यह भी कहा गया था कि राज्य की न्यूनतम मजदूरी दर अन्य राज्यों से भी अधिक हो गई है।

उछलते- कूदते,लंगूर,भागते यात्री,यह नजारा था टाटा नगर रेलवे स्टेशन का,आतंक मचाते लंगूरों ने दो घंटे तक किया जी आर पी थाने पर भी कब्ज़ा






झारखंड डेस्क झारखंड के टाटा नगर रेलवे स्टेशन का अजीव नज़ारा था।स्टेशन पर एक तरफ लंगूर उछल-कूद कर रहे थे तो दूसरी तरफ यात्री भागते फिर रहे थे।रेलकर्मी भी सहमे हुए थे। झारखंड के टाटानगर स्टेशन का। स्टेशन पर तीन घंटे से ज्यादा समय तक लंगूर ने जमकर उत्पात मचाया। डरे सहमे यात्री वन विभाग की टीम के आने का इंतजार करते रहे। विभाग की टीम पहुंची जरूर पर हर बार की तरह इस बार उसे खाली ही लौटना पड़ा।

इस दौरान लंगूर रेल थाने को घंटे भर अपने कब्जे में ले लिया।लंगूर के डर से जान बचाकर थाना से रेल पुलिसकर्मी उसके बाहर निकलने के बाद ही थाने में प्रवेश कर पाये। टाटानगर में लंगूर के उत्पात की यह नई घटना नहीं है। पहले भी यहां वह यात्री को चोटिल करता रहा है, पर इस बार उसका दायरा प्लेटफॉर्म तक ही सीमित नहीं रहा। हालांकि, लंगूर ने किसी को जख्मी नहीं किया।

शुक्रवार दोपहर लंगूर के कारण टाटानगर रेल थाना और रेलवे पार्सल कार्यालय में भगदड़ मच गई। लंगूर पहले रेल थाना में घुसा। यहां पहल जमीन और कुर्सी एवं टेबल पर चढ़कर बैठ गया। आरपीएफ जवानों ने लंगूर की सूचना पर जीआरपी से किनारा कर लिया। लंगूर के हमले से जख्मी हुए थे दो जवान लंगूर ने एक सप्ताह पूर्व टाटानगर स्टेशन सुरक्षा ड्यूटी आरपीएफ और जीआरपी के जवान को जख्मी किया था। जनवरी से अबतक डेढ़ दर्जन से ज्यादा यात्रियों को जख्मी कर चुका है।

लंगूर हर 10-15 दिन में टाटानगर में रेलकर्मियों व यात्रियों को परेशान कर रहा है। यात्रियों में मची अफरातफरी रेल थाना से निकलकर लंगूर प्लेटफार्म नंबर एक स्थित पार्सल कार्यालय चला गया। यहां कर्मचारी काम छोड़कर एक जगह बैठ गए। यहां से निकलकर लंगूर प्लेटफॉर्म पर पहुंचा। यहां दो घंटे तक प्लेटफार्म पर बैठे रहा। उसे देखते ही यात्रियों में अफरातफरी मच गई। इधर, स्टेशन के अधिकारियों ने वन विभाग को सूचना दी, लेकिन देर शाम तक लंगूर वन विभाग के हाथ नहीं लगा।
बलियापुर ब्लॉक कोऑर्डिनेटर को घूस लेते एसीबी ने किया गिरफ्तार

धनबाद : झारखंड के धनबाद जिले के बलियापुर प्रखंड कार्यालय में ब्लॉक कोऑर्डिनेटर को एंटी करप्शन ब्यूरो ने घूस लेते समय गिरफ्तार किया। गिरफ्तार करने के बाद जयंत को धनबाद लाया गया है, जहां उससे पूछताछ होगी।

आरोप है कि एक ठेकेदार से बिल पास कराने के एवज में जयंत ने पैसों की मांग की थी। ठेकेदार अपने बिल को पास कराने के लिए लगातार दफ्तर के चक्कर लगा रहा था, लेकिन, उसकी बात नहीं सुनी जा रही थी।

ठेकेदार का आरोप है कि उससे बिल पास कराने के एवज में 30 हजार रुपए मांगे गए। इसकी शिकायत उन्होंने एंटी करप्शन ब्यूरो से की। इसके बाद, एसीबी अधिकारियों ने फौरन कार्रवाई करते हुए ब्लॉक कोऑर्डिनेटर जयंत कुमार को गिरफ्तार कर लिया।

बोकारो झुमरा पहाड़ में नक्सलियों के ठिकाने पर सुरक्षाबलों की छापेमारी, टेंट व चूल्हे को किया गया नष्ट

बोकारो :प्रतिबंधित नक्सली संगठन भाकपा माओवादी के कमाण्डर बिरसेन उर्फ चंचल व उसके साथियों के झुमरा पहाड़ी क्षेत्र में भ्रमणशील होने की सूचना प्राप्त होने पर सीआरपीएफ, झारखण्ड जगुआर व जिला पुलिस बल को सम्मलित कर एक संयुक्त छापेमारी अभियान चलाया गया. 

छापेमारी के क्रम में थाना प्रभारी ललपनिया व झारखण्ड जगुआर एजी-15 की सर्च टीम लालगढ टोला, लईयोगढ़ा पार कर रही थी कि जंगल की तरफ से एक फायर हुआ. जिसका सर्च टीम के द्वारा पीछा किया गया, लेकिन जंगल का फायदा उठाकर गोली चलाने वाला भाग गया. सर्च टीम के द्वारा तलाशी में एक भरथुआ बंदूक पाया गया.

वहीं अभियान के क्रम में सहायक समादेष्टा CRPF व प्रभारी रहावन ओपी की टीम के द्वारा झुमरा पहाड के जंगल में नक्सलियों के छिपने का ठिकाना का पता लगाया गया. जहां रहने, खाना बनाने, मोर्चा आदि पाया गया. जिसे सर्च टीम के द्वारा विनष्ट कर दिया गया. इस संबंध में प्राथमिकी दर्ज कर अग्रतर कार्रवाई की जा रही है. 

वहीं नक्सलियों के विरूद्ध छापेमारी की जा रही है. पुलिस के द्वारा मजल लोडिंग भरथुआ बंदूक बरामद किया गया और उग्रवादियों के द्वारा प्रयोग किए जा रहे मिट्टी का चुल्हा, मचान आदि को अभियान में शामिल सर्च टीम के द्वारा विनिष्ट कर दिया गया.

वहीं छापामारी अभियान में प्रभात कुमार, सहायक समादेष्टा, CRPF, जगदेव पाहन तिर्की, पुलिस निरीक्षक झारखण्ड जगुआर, शशि शेखर कुमार, ओपी प्रभारी, ललपनियां ओपी, जय प्रकाश एक्का, ओपी प्रभारी रहावन ओपी, दीपक कुमार राणा, थाना प्रभारी चतरोचट्टी थाना, रंजीत प्रसाद यादव, थाना प्रभारी महुआटॉड थाना, CRPF, झारखण्ड जगुआर व जिला बल के सशस्त्र जवान शामिल थे.