उत्तराखंड : उधम सिंह नगर में शीतलहर और घने कोहरे के चलते स्कूल व आंगनबाड़ी केंद्रों में अवकाश

रुद्रपुर। उधम सिंह नगर जनपद में बढ़ती ठंड, शीतलहर और घने कोहरे की संभावना को देखते हुए जिलाधिकारी नितिन सिंह भदौरिया ने सोमवार को बड़ा निर्णय लिया है। जिलाधिकारी ने जनपद के सभी आंगनबाड़ी केंद्रों और कक्षा 1 से 12वीं तक के सभी निजी, अर्ध सरकारी और सरकारी विद्यालयों में अवकाश घोषित किया है।

जिलाधिकारी ने बताया कि यह निर्णय छात्रों के स्वास्थ्य और सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए लिया गया है। बीते कुछ दिनों से तराई क्षेत्र में कड़ाके की ठंड और घना कोहरा छाया हुआ है, जिससे सड़कों पर दृश्यता लगभग शून्य हो गई है और जनजीवन प्रभावित हो रहा है।

जिलाधिकारी ने आदेश जारी करते हुए सभी संबंधित अधिकारियों और तहसीलदारों को निर्देश दिए हैं कि अवकाश के आदेश का कड़ाई से पालन सुनिश्चित किया जाए। आदेश की अवहेलना करने वाले विद्यालयों और संस्थानों के खिलाफ आपदा प्रबंधन अधिनियम 2005 के तहत कार्रवाई की जाएगी।

मौसम विभाग ने भी उधम सिंह नगर सहित हरिद्वार, नैनीताल, चंपावत, देहरादून और पौड़ी जिलों में घने कोहरे की संभावना जताई है। विशेष रूप से हरिद्वार और उधम सिंह नगर में शीत दिवस की स्थिति बनने का पूर्वानुमान है, जिसके चलते येलो अलर्ट जारी किया गया है।

प्रदेश के अधिकांश जिलों में मौसम शुष्क रहने की संभावना है। राजधानी देहरादून में आज आंशिक बादल छाए रहने और कोहरे की संभावना है। अधिकतम तापमान लगभग 23 डिग्री सेल्सियस और न्यूनतम तापमान करीब 8 डिग्री सेल्सियस रहने का अनुमान है।

उत्तराखंड: मसूरी टाउन हॉल में अराजक तत्वों की तोड़फोड़, प्रशासन सख्त; सीसीटीवी फुटेज से होगी कार्रवाई

मसूरी, उत्तराखंड। पहाड़ों की रानी मसूरी में चल रहे विंटरलैंड कार्निवल के दौरान टाउन हॉल परिसर में हुई तोड़फोड़ की घटना को लेकर प्रशासन और नगर पालिका ने सख्त रुख अपना लिया है। देर रात कुछ असामाजिक तत्वों द्वारा सरकारी संपत्ति को नुकसान पहुंचाए जाने के बाद दोषियों की पहचान के लिए टाउन हॉल और आसपास लगे सीसीटीवी कैमरों की फुटेज खंगाली जा रही है।

एसडीएम मसूरी राहुल आनंद और नगर पालिका अध्यक्ष मीरा सकलानी ने घटना पर गहरी नाराजगी जताई। उन्होंने कहा कि टाउन हॉल एक महत्वपूर्ण सरकारी संपत्ति है और विंटरलैंड कार्निवल का आयोजन स्थानीय जनता और पर्यटकों के मनोरंजन के लिए किया जाता है, न कि अराजकता फैलाने के लिए।

एसडीएम राहुल आनंद ने बताया कि शनिवार देर रात आयोजित सांस्कृतिक कार्यक्रम के दौरान कुछ असामाजिक तत्वों ने जानबूझकर माहौल खराब किया और टाउन हॉल परिसर में अभद्रता व तोड़फोड़ की। प्रशासन ने मामले का संज्ञान लेते हुए दोषियों के खिलाफ कड़ी कानूनी कार्रवाई के निर्देश दिए हैं।

नगर पालिका अध्यक्ष मीरा सकलानी ने बताया कि टाउन हॉल और उसके आसपास लगे सीसीटीवी कैमरों की फुटेज के आधार पर आरोपियों की पहचान की जा रही है। उन्होंने साफ कहा कि सरकारी संपत्ति को नुकसान पहुंचाने वालों को किसी भी सूरत में बख्शा नहीं जाएगा।

प्रशासन और नगर पालिका ने आम जनता और पर्यटकों से अपील की है कि वे विंटरलैंड कार्निवल का आनंद शांति और अनुशासन के साथ लें और किसी भी संदिग्ध गतिविधि की तुरंत सूचना प्रशासन को दें, ताकि भविष्य में ऐसी घटनाओं की पुनरावृत्ति रोकी जा सके।

उत्तराखंड : नए साल पर पुलिस की पैनी नजर, हुड़दंग करने वालों पर होगी सख्त कार्रवाई

देहरादून, उत्तराखंड। नए साल के स्वागत को लेकर दून पुलिस पूरी तरह अलर्ट मोड में है। 31 दिसंबर और न्यू ईयर के दौरान शांति, सुरक्षा और कानून व्यवस्था बनाए रखने के लिए एसएसपी अजय सिंह ने जनपद के सभी होटल संचालकों, आयोजकों और प्रतिष्ठान स्वामियों के साथ बैठक कर आवश्यक दिशा-निर्देश जारी किए हैं।

एसएसपी अजय सिंह ने स्पष्ट निर्देश दिए कि किसी भी आयोजन से पूर्व फायर सेफ्टी ऑडिट कराना अनिवार्य होगा। सभी प्रतिष्ठानों को अग्नि सुरक्षा उपकरणों को क्रियाशील स्थिति में रखने, निर्धारित समय सीमा के बाद लाउड म्यूजिक न बजाने और सभी सुरक्षा मानकों का कड़ाई से पालन करने के निर्देश दिए गए हैं।

बैठक के दौरान होटल और कार्यक्रम आयोजकों को अपने प्रतिष्ठानों में आने वाले वाहनों के लिए समुचित पार्किंग व्यवस्था सुनिश्चित करने और सुरक्षा की दृष्टि से पर्याप्त संख्या में प्रशिक्षित सुरक्षा गार्ड तैनात करने को कहा गया। किसी भी प्रकार की अप्रिय स्थिति या विवाद उत्पन्न होने पर तत्काल पुलिस को सूचना देने के निर्देश भी दिए गए हैं।

इसके अलावा, प्रतिष्ठानों में आने वाले विदेशी नागरिकों की जानकारी स्थानीय अभिसूचना इकाई को देने, सभी सीसीटीवी कैमरों को चालू रखने और किसी भी संदिग्ध गतिविधि की सूचना तुरंत पुलिस को देने के निर्देश दिए गए। अवैध गतिविधियों, शराब पीकर वाहन चलाने और सार्वजनिक स्थानों पर हुड़दंग मचाने पर पूर्ण प्रतिबंध रहेगा।

एसएसपी ने प्रतिष्ठान स्वामियों को यह भी निर्देशित किया कि उनके यहां नियुक्त स्टाफ पर्यटकों और आगंतुकों के साथ शालीन और मर्यादित व्यवहार करे। उन्होंने कहा कि नए साल का स्वागत उत्साह और उल्लास के साथ किया जाए, लेकिन नियमों का उल्लंघन करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी। पुलिस द्वारा न्यू ईयर के दौरान विशेष चेकिंग और निगरानी अभियान भी चलाया जाएगा।

उत्तराखंड: मसूरी टाउन हॉल में अराजक तत्वों की तोड़फोड़, प्रशासन सख्त; सीसीटीवी फुटेज से होगी कार्रवाई

मसूरी, उत्तराखंड। पहाड़ों की रानी मसूरी में चल रहे विंटरलैंड कार्निवल के दौरान टाउन हॉल परिसर में हुई तोड़फोड़ की घटना को लेकर प्रशासन और नगर पालिका ने सख्त रुख अपना लिया है। देर रात कुछ असामाजिक तत्वों द्वारा सरकारी संपत्ति को नुकसान पहुंचाए जाने के बाद दोषियों की पहचान के लिए टाउन हॉल और आसपास लगे सीसीटीवी कैमरों की फुटेज खंगाली जा रही है।

एसडीएम मसूरी राहुल आनंद और नगर पालिका अध्यक्ष मीरा सकलानी ने घटना पर गहरी नाराजगी जताई। उन्होंने कहा कि टाउन हॉल एक महत्वपूर्ण सरकारी संपत्ति है और विंटरलैंड कार्निवल का आयोजन स्थानीय जनता और पर्यटकों के मनोरंजन के लिए किया जाता है, न कि अराजकता फैलाने के लिए।

एसडीएम राहुल आनंद ने बताया कि शनिवार देर रात आयोजित सांस्कृतिक कार्यक्रम के दौरान कुछ असामाजिक तत्वों ने जानबूझकर माहौल खराब किया और टाउन हॉल परिसर में अभद्रता व तोड़फोड़ की। प्रशासन ने मामले का संज्ञान लेते हुए दोषियों के खिलाफ कड़ी कानूनी कार्रवाई के निर्देश दिए हैं।

नगर पालिका अध्यक्ष मीरा सकलानी ने बताया कि टाउन हॉल और उसके आसपास लगे सीसीटीवी कैमरों की फुटेज के आधार पर आरोपियों की पहचान की जा रही है। उन्होंने साफ कहा कि सरकारी संपत्ति को नुकसान पहुंचाने वालों को किसी भी सूरत में बख्शा नहीं जाएगा।

प्रशासन और नगर पालिका ने आम जनता और पर्यटकों से अपील की है कि वे विंटरलैंड कार्निवल का आनंद शांति और अनुशासन के साथ लें और किसी भी संदिग्ध गतिविधि की तुरंत सूचना प्रशासन को दें, ताकि भविष्य में ऐसी घटनाओं की पुनरावृत्ति रोकी जा सके।

नए साल पर ऋषिकेश को बड़ी सौगात, जल्द खुलेगा गंगा पर बना आधुनिक बजरंग सेतु

ऋषिकेश, उत्तराखंड। नए साल के अवसर पर ऋषिकेश आने वाले देश-विदेश के श्रद्धालुओं और पर्यटकों के लिए खुशखबरी है। गंगा नदी पर लंबे समय से निर्माणाधीन आधुनिक बजरंग सेतु को आमजन के लिए खोलने की तैयारियां अंतिम चरण में पहुंच गई हैं। लोक निर्माण विभाग (PWD) के अनुसार, पुल का निर्माण कार्य 26 जनवरी तक पूरा करने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है। किसी तकनीकी कारण से यदि थोड़ी देरी होती है, तो जनवरी के अंतिम सप्ताह या फरवरी के प्रथम सप्ताह तक पुल को जनता के लिए खोल दिया जाएगा।

बजरंग सेतु का अधिकांश निर्माण कार्य पूरा हो चुका है। विभागीय अधिकारियों के मुताबिक पुल का स्ट्रक्चर पूरी तरह तैयार है और डेक ग्लास भी लगाए जा चुके हैं। वर्तमान में अंतिम चरण के तहत एफआरपी (FRP) का कार्य किया जा रहा है। कुल लगभग 2400 वर्ग मीटर क्षेत्र में एफआरपी लगाया जाना है, जिसमें से करीब 1200 वर्ग मीटर कार्य पूर्ण हो चुका है। शेष कार्य भी शीघ्र पूरा कर लिया जाएगा।

लोक निर्माण विभाग को पुल निर्माण के लिए 26 जनवरी तक की डेडलाइन दी गई है। विभाग का दावा है कि वर्ष 2026 की शुरुआत में यह पुल पूरी तरह बनकर जनता को समर्पित कर दिया जाएगा। पुल के शुरू होने से श्रद्धालुओं और पर्यटकों को आवागमन में सुविधा मिलेगी, वहीं स्थानीय लोगों को जाम और लंबी दूरी की समस्या से भी राहत मिलेगी।

गौरतलब है कि ऋषिकेश का ऐतिहासिक लक्ष्मण झूला वर्ष 1929 में बनाया गया था, जो समय के साथ जर्जर हो गया। सुरक्षा कारणों के चलते वर्ष 2019 में लक्ष्मण झूला को बंद कर दिया गया था। इसके बाद से ही उसके विकल्प के रूप में नए पुल की आवश्यकता महसूस की जा रही थी। इसी आवश्यकता को पूरा करने के उद्देश्य से बजरंग सेतु का निर्माण किया गया।

लोक निर्माण विभाग के प्रमुख अभियंता राजेश शर्मा ने बताया कि विभाग पूरी कोशिश कर रहा है कि निर्धारित समय सीमा के भीतर पुल को पूरी तरह सुरक्षित और सुचारू रूप से आमजन के लिए खोल दिया जाए। बजरंग सेतु के शुरू होने से ऋषिकेश की धार्मिक और पर्यटन पहचान को नई मजबूती मिलने की उम्मीद जताई जा रही है।

उत्तराखंड में वनभूमि से बेदखली का संकट गहराया, सुप्रीम कोर्ट के आदेश के खिलाफ आंदोलन अंतिम विकल्प
रामनगर। उत्तराखंड में वनभूमि से अतिक्रमण हटाने को लेकर सुप्रीम कोर्ट के आदेश ने लाखों लोगों के सामने बेदखली का गंभीर संकट खड़ा कर दिया है। इस मुद्दे को लेकर संयुक्त संघर्ष समिति ने सरकार और वन विभाग के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है। समिति का कहना है कि अब जनता के पास आंदोलन के अलावा कोई विकल्प नहीं बचा है।

इसी क्रम में संयुक्त संघर्ष समिति ने आगामी 4 जनवरी को रामनगर में प्रस्तावित जन सम्मेलन को सफल बनाने के उद्देश्य से ग्राम सुंदरखाल में एक जनसभा का आयोजन किया। जनसभा में वक्ताओं ने बुलडोजर कार्रवाई पर तत्काल रोक लगाने, सभी वन ग्रामों और गोठ खत्तों को राजस्व ग्राम घोषित करने, बेदखल किए गए ग्रामीणों के पुनर्वास और हाईकोर्ट के स्टे आदेश का उल्लंघन करने वाले अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की।
वक्ताओं ने आरोप लगाया कि 7 दिसंबर को पूछड़ी गांव में हाईकोर्ट के स्टे आदेश के बावजूद बुलडोजर कार्रवाई की गई। इसके लिए डीएफओ प्रकाश चंद्र आर्य और अन्य संबंधित अधिकारियों को जिम्मेदार ठहराते हुए उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग की गई। उन्होंने कहा कि पूछड़ी गांव से विस्थापित 90 परिवारों का अब तक पुनर्वास नहीं किया गया है।
सभा को संबोधित करते हुए वक्ताओं ने सांसद अनिल बलूनी पर वन ग्रामों को बिजली, पानी और मूलभूत सुविधाएं देने के वादे को दोहराकर जनता के साथ विश्वासघात करने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि यदि सांसद वास्तव में वन ग्रामवासियों के पक्ष में हैं, तो पहले पूछड़ी से उजाड़े गए परिवारों का पुनर्वास सुनिश्चित करें।
वक्ताओं ने बताया कि उत्तराखंड का कुल क्षेत्रफल लगभग 53 हजार वर्ग किलोमीटर है, जिसमें से करीब 71 प्रतिशत भूमि वन क्षेत्र है। इसके बावजूद केवल 104 वर्ग किलोमीटर वन भूमि पर ही लोग निवास करते हैं, जो कुल वनभूमि का मात्र 0.28 प्रतिशत है। वक्ताओं का कहना था कि इन लोगों ने जंगलों को नष्ट नहीं किया, बल्कि उन्हें बचाया और संवारा है।

उन्होंने आरोप लगाया कि भाजपा सरकार वनवासियों को बेदखल करने की साजिश कर रही है। मांग की गई कि राज्य में जहां भी लोग वर्षों से रह रहे हैं, उन्हें वहीं पर मालिकाना हक दिया जाए और किसी भी व्यक्ति को हटाने से पहले उसका उचित पुनर्वास सुनिश्चित किया जाए।

*4 जनवरी को रामनगर में होगा बड़ा जन सम्मेलन*

संयुक्त संघर्ष समिति ने ऐलान किया कि 4 जनवरी को रामनगर में आयोजित जन सम्मेलन में सुप्रीम कोर्ट के वरिष्ठ अधिवक्ता रवीन्द्र गड़िया, वन पंचायत संघर्ष मोर्चा के तरुण जोशी, चेतना आंदोलन के शंकर गोपाल, उपपा नेता पीसी तिवारी, किसान नेता अवतार सिंह समेत कई सामाजिक और राजनीतिक संगठनों के नेता भाग लेंगे।
जनसभा को खीमराम, प्रेम राम, पूरन चंद्र, प्रभात ध्यानी, कौशल्या, रोहित रुहेला, आशा, तुलसी छिंबाल, दिल्ली उच्च न्यायालय के अधिवक्ता कमलेश कुमार, मुनीष कुमार सहित अन्य वक्ताओं ने संबोधित किया। सभा का संचालन शेखर ने किया।
अंकिता भंडारी हत्याकांड: कांग्रेस का कैंडल मार्च, निष्पक्ष जांच और कार्रवाई की मांग
देहरादून। उत्तराखंड की राजनीति में अंकिता भंडारी हत्याकांड को लेकर सियासी तापमान एक बार फिर बढ़ गया है। कांग्रेस ने इस मामले को लेकर भाजपा पर तीखा हमला करते हुए प्रदेश के विभिन्न हिस्सों में प्रदर्शन और कैंडल मार्च निकाले। पार्टी ने दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई और मामले की निष्पक्ष जांच की मांग की है।

पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने डोईवाला ब्लॉक में कैंडल मार्च निकालकर विरोध दर्ज कराया। इस दौरान बड़ी संख्या में कांग्रेस कार्यकर्ता मौजूद रहे। कांग्रेस नेताओं ने अंकिता भंडारी को न्याय दिलाने और कथित वीआईपी की भूमिका की निष्पक्ष जांच की मांग की। पार्टी का कहना है कि मामले की जांच हाईकोर्ट या सुप्रीम कोर्ट के सिटिंग जज की निगरानी में कराई जानी चाहिए।

बीते दिन यूथ कांग्रेस ने लैंसडाउन चौक के पास स्थित भाजपा महानगर कार्यालय की ओर कूच किया। पुलिस ने कनक चौक पर बैरिकेडिंग लगाकर कार्यकर्ताओं को रोक दिया, जिसके बाद धक्का-मुक्की की स्थिति बनी। पुलिस ने कई कार्यकर्ताओं को हिरासत में लेकर पुलिस लाइन भेज दिया। प्रदर्शन का नेतृत्व यूथ कांग्रेस प्रदेश उपाध्यक्ष स्वाति नेगी ने किया। इससे पहले कार्यकर्ता राजीव भवन में एकत्र हुए और नारेबाजी करते हुए आगे बढ़े।

विवाद तब और गहराया जब भाजपा के पूर्व विधायक सुरेश राठौर की कथित पत्नी बताने वाली अभिनेत्री उर्मिला सनावर का एक वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुआ। वीडियो में उन्होंने अंकिता भंडारी केस में एक बड़े भाजपा नेता पर आरोप लगाते हुए कथित वीवीआईपी का नाम लिया। इसके बाद कांग्रेस ने भाजपा पर हमले तेज कर दिए, जबकि भाजपा नेताओं ने भी आरोपों पर प्रतिक्रिया दी है।

क्या है अंकिता भंडारी हत्याकांड
पौड़ी गढ़वाल जनपद के डोभ श्रीकोट की रहने वाली 22 वर्षीय अंकिता भंडारी यमकेश्वर स्थित वनंत्रा रिसोर्ट में कार्यरत थीं। मामले की जांच के बाद पुलिस ने तीन आरोपियों को गिरफ्तार किया था। निचली अदालत ने तीनों दोषियों को आजीवन कारावास की सजा सुनाई है, और वे वर्तमान में जेल में हैं।
डोईवाला युवक हत्याकांड का दून पुलिस ने किया खुलासा, दो आरोपी गिरफ्तार
देहरादून, उत्तराखंड। डोईवाला क्षेत्र में युवक की हत्या के मामले का दून पुलिस ने सफल खुलासा करते हुए दो अभियुक्तों को गिरफ्तार कर लिया है। पुलिस के अनुसार यह हत्या मामूली विवाद के बाद हुई आपसी मारपीट का नतीजा थी, जिसमें गंभीर रूप से घायल युवक की मौत हो गई।

जानकारी के मुताबिक, 24 दिसंबर 2025 को कोतवाली डोईवाला क्षेत्र अंतर्गत लच्छीवाला फ्लाईओवर के पास दीपक पुत्र स्वर्गीय चैतराम, निवासी ऋषिनगर सहस्त्रधारा रोड, रायपुर देहरादून का शव बरामद हुआ था। पुलिस ने शव को कोरोनेशन अस्पताल भेजकर पंचायतनामा व पोस्टमार्टम की कार्रवाई कराई।

25 दिसंबर 2025 को मृतक की पत्नी ज्योति ने थाना रायपुर में तहरीर देकर आरोप लगाया कि उनके पति दीपक को भुवनेश चन्द्र उर्फ जॉनी अपने साथ ले गया था और उसी ने उनकी हत्या की है। तहरीर के आधार पर कोतवाली डोईवाला में मुकदमा संख्या 333/2025, धारा 103(1) बीएनएस के अंतर्गत मामला दर्ज किया गया।

घटना की गंभीरता को देखते हुए वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक देहरादून के निर्देश पर विशेष पुलिस  का गठन किया गया। जांच के दौरान नामजद अभियुक्त भुवनेश चन्द्र उर्फ जॉनी और उसके साथी नाथीराम की संलिप्तता सामने आई।

पुलिस टीम ने त्वरित कार्रवाई करते हुए 26 दिसंबर 2025 को थानो रोड, कोठारी मोहल्ला के पास जौलीग्रान्ट, डोईवाला से दोनों अभियुक्तों को गिरफ्तार कर लिया। घटना में प्रयुक्त ई-रिक्शा (यूके-07-टीई-3163) को भी सीज कर दिया गया है।

*गिरफ्तार अभियुक्तों का विवरण*

भुवनेश चन्द्र उर्फ जॉनी, पुत्र महेश चन्द्र, निवासी सिमेंट रोड, नदी रिस्पना, ब्लॉक-2, कोतवाली डालनवाला, देहरादून (उम्र 33 वर्ष)

नाथीराम, पुत्र रामचन्द्र, निवासी गुरुद्वारा के पास, संजय कॉलोनी, कोतवाली पटेलनगर, देहरादून (उम्र 54 वर्ष)

*पुलिस टीम*

इस कार्रवाई में प्रभारी निरीक्षक प्रदीप कुमार राणा (कोतवाली डोईवाला), वरिष्ठ उप निरीक्षक विनोद सिंह राणा, उप निरीक्षक नवीन डंगवाल (चौकी प्रभारी जौलीग्रान्ट), उप निरीक्षक राजनारायण व्यास, अपर उप निरीक्षक प्रेम सिंह बिष्ट सहित अन्य पुलिसकर्मी शामिल रहे।

दून पुलिस की इस त्वरित और प्रभावी कार्रवाई से क्षेत्र में कानून-व्यवस्था को लेकर लोगों का भरोसा मजबूत हुआ है।
नाबालिग को बहला-फुसलाकर सहारनपुर ले गया युवक, दुष्कर्म के आरोप में गिरफ्तार

देहरादून, उत्तराखंड। नेहरू कॉलोनी थाना क्षेत्र में एक सनसनीखेज मामला सामने आया है, जिसमें 19 वर्षीय युवक ने पड़ोस में रहने वाली 17 वर्षीय नाबालिग लड़की को इंस्टाग्राम पर बातचीत के जरिए बहला-फुसलाया और घर से भगा ले गया। आरोपी ने अपने दोस्त की मदद से लड़की को देहरादून आईएसबीटी से बस में बैठाकर सहारनपुर ले गया, जहां उसके साथ दुष्कर्म किया।
पुलिस सूत्रों के अनुसार, आरोपी का पिता इलाके में वैध (डॉक्टर) का काम करता है और आरोपी उसके साथ दुकान पर बैठता था। इसी दौरान उसकी मुलाकात नाबालिग से हुई और दोनों के बीच इंस्टाग्राम पर बातचीत शुरू हो गई। जब लड़की की मां को इसकी भनक लगी तो उन्होंने बेटी को डांटा, जिसके बाद आरोपी ने लड़की को मिलने के लिए घर से बाहर बुलाया।
पीड़िता के चाचा ने बताया कि आरोपी और उसके दोस्त ने लड़की को घर के पास से लिया और आईएसबीटी पहुंचाया। वहां से बस पकड़कर सहारनपुर चले गए। लड़की ने वापस आकर परिजनों को बताया कि आरोपी उसे जबरन सहारनपुर ले गया और वहां दुष्कर्म किया।
थाना प्रभारी संजीत कुमार ने बताया कि 21 दिसंबर को पीड़िता की शिकायत पर पॉक्सो एक्ट के तहत मुकदमा दर्ज किया गया। पुलिस टीम ने आरोपी और नाबालिग को अजबपुर फ्लाईओवर के नीचे से बरामद किया। आरोपी को गिरफ्तार कर न्यायालय में पेश किया गया, जहां से उसे न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया। नाबालिग को सुरक्षित परिजनों के सुपुर्द कर दिया गया है। पुलिस मामले की गहन जांच कर रही है।
उत्तराखंड मुख्यमंत्री धामी ने “पैंली-पैंली बार” उत्तराखंडी गीत का किया विमोचन
ब्यूरो

देहरादून। उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने आज एक विशेष कार्यक्रम में लोकप्रिय उत्तराखंडी लोकगीत “पैंली-पैंली बार” के नए संस्करण या संकलित रूप का विमोचन किया। यह गीत उत्तराखंड की समृद्ध लोक संस्कृति और पहाड़ी परंपराओं का प्रतीक है, जो बारिश, प्रकृति और ग्रामीण जीवन की खुशियों को दर्शाता है।
मुख्यमंत्री धामी ने विमोचन समारोह को संबोधित करते हुए कहा कि उत्तराखंड की लोक संस्कृति और लोकगीत हमारी पहचान की मजबूत नींव हैं। “पैंली-पैंली बार” जैसे गीत न केवल युवा पीढ़ी को अपनी जड़ों से जोड़ते हैं, बल्कि राज्य की सांस्कृतिक धरोहर को विश्व स्तर पर पहुंचाने में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं। उन्होंने कहा, “हमारी सरकार उत्तराखंडी लोककला, संगीत और परंपराओं को संरक्षित एवं प्रोत्साहित करने के लिए प्रतिबद्ध है। ऐसे आयोजन देवभूमि की आत्मा को जीवंत रखते हैं।”
इस अवसर पर लोक कलाकारों ने “पैंली-पैंली बार” गीत की प्रस्तुति दी, जिसने उपस्थित जनसमूह को मंत्रमुग्ध कर दिया। कार्यक्रम में कई गणमान्य व्यक्ति, लोक गायकों और सांस्कृतिक प्रेमियों ने भाग लिया।
मुख्यमंत्री धामी ने गीत के कलाकारों और निर्माताओं की सराहना करते हुए कहा कि ऐसे प्रयास राज्य की सांस्कृतिक विरासत को नई पीढ़ी तक पहुंचाने में सहायक होंगे। उन्होंने पर्यटकों और प्रवासी उत्तराखंडियों से भी अपील की कि वे ऐसे गीतों के माध्यम से देवभूमि की सुंदरता और संस्कृति से जुड़ें।
यह विमोचन उत्तराखंड सरकार की लोक संस्कृति संवर्धन की मुहिम का हिस्सा है, जो राज्य को सांस्कृतिक रूप से और मजबूत बनाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।