जिलाधिकारी ने आकांक्षात्मक विकास खण्ड-बहरिया, कोरांव एवं माण्डा की प्रगति रिपोर्ट की समीक्षा की

प्रयागराज।जिलाधिकारी मनीष कुमार वर्मा की अध्यक्षता में शुक्रवार को संगम सभागार में आकांक्षात्मक विकास खण्ड-बहरिया, कोरांव एवं माण्डा की प्रगति रिपोर्ट की समीक्षा की। बैठक में जिलाधिकारी ने विकास खण्ड बहरिया कोरांव एवं माण्डा में पंचायतीराज विभाग बेसिक शिक्षा विभाग बाल विकास पुष्टाहार विभाग स्वास्थ्य विभाग कृषि विभाग ऊर्जा एवं ग्राम्य विकास विभाग के अधिकारियों को अपने विभाग से सम्बंधित कार्रवाई योग्य बिंदु जो कि अभी लम्बित है उन पर आवश्यक कार्यवाही करने के निर्देश दिए है।उन्होंने मुख्य चिकित्साधिकारी से सम्बंधित ब्लाकों में बीएचएनडी सेशन में सभी आवश्यक व्यवस्थायें सुनिश्चित करने के साथ-साथ सभी इक्यूपमेंटों की व्यवस्था करने के निर्देश दिए है।उन्होंने कहा कि सभी आशा एवं आंगनबाड़ी कार्यकत्री वीएचएनडी सेशन में सभी आवश्यक इक्यूपमेंट अवश्य ले जायें और वीएचएनडी सेशन में आने वाली गर्भवती महिलाओं की एएनसी का पूरा चेकअप करने के निर्देश दिए है।उन्होेंने उच्च रक्तचाप डायबिटीज की जांच कराये जाने के निर्देश दिए है। जिलाधिकारी ने बहरिया कोरांव एवं माण्डा में संस्थागत प्रसव बढ़ाये जाने के निर्देश दिए है। उल्लेखनीय है कि जनपद के 23 विकास खण्डों में से 02 विकास खण्ड बहरिया एवं कोरांव का चयन नीति आयोग भारत सरकार एवं विकास खण्ड माण्डा चयन उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा आकांक्षात्मक विकास खण्ड के अन्तर्गत किया गया है।108 आकांक्षात्मक ब्लाकों की एब्शोल्यूट रैकिंग में बहरिया-15 कोरांव-63 एवं माण्डा-68 एवं डेल्टा रैकिंग में बहरिया-102 कोरांव-107 एवं माण्डा की रैकिंग-12 है।इस अवसर पर मुख्य विकास अधिकारी हर्षिका सिंह सहित सभी सम्बंधित अधिकारीगण उपस्थित रहे।

जिलाधिकारी ने विकास भवन का किया औचक निरीक्षण

प्रयागराज संजय द्विवेदी। जिलाधिकारी मनीष कुमार वर्मा ने शुक्रवार को विकास भवन पहुंचकर विभिन्न कार्यालयों का औचक निरीक्षण किया और विकास भवन में सभी आवश्यक मूलभूत सुविधाओं की जानकारी लेते हुए विकास भवन में स्थित सभी कार्यालयों में आवश्यक व्यवस्थाओं को चाक-चौबन्द बनाये जाने एवं विकास भवन में आने वाले लोगो की समस्याओं को मानवीय दृष्टिकोण अपनाते हुए नियमानुसार शीघ्रता से निस्तारित करने एवं उनकी सुविधाओं का विशेष ध्यान रखे जाने के निर्देश दिए है।

जिलाधिकारी ने मुख्य विकास अधिकारी से निरीक्षण के दौरान अनुपस्थित पाये गये जिला युवा कल्याण अधिकारी जिला कृषि अधिकारी मुख्य कार्यकारी अधिकारी-मत्स्य सहायक निबंधक सहकारी समितियां जिला पिछड़ा वर्ग कल्याण अधिकारी जिला खादी अधिकारी का एक दिन का वेतन रोके जाने एवं स्पष्टीकरण प्राप्त करने के निर्देश दिए है। उन्होंने सभी कार्यालयों के उपस्थिति पंजिका में आकस्मिक अवकाश के स्वीकृति पत्र को भी पंजिका में ही रखे जाने के निर्देश दिए है। जिलाधिकारी ने सभी अधिकारियों को समय से कार्यालय आने एवं अपने अपने कार्यालय मे साफ-सफाई की अच्छी व्यवस्था एवं फाइलों को व्यवस्थित रखने के निर्देश दिए है।जिलाधिकारी ने विकास भवन के सभी कार्यालयों की उपस्थिति पंजिका का निरीक्षण किया, जिसमें समाज कल्याण विभाग के 01 कर्मचारी डीआरडीए के 01 कर्मचारी जिला कृषि अधिकारी कार्यालय के 03 कर्मचारी जिला कार्यक्रम अधिकारी कार्यालय के 01 कर्मचारी जिला पंचायतराज अधिकारी कार्यालय के 02 कर्मचारी अल्पसंख्यक कल्याण विभाग के 01 कर्मचारी मुख्य पशुचिकित्साधिकारी कार्यालय के 02 कर्मचारी सहकारिता विभाग के 02 कर्मचारी जिला विकास अधिकारी कार्यालय के 01 कर्मचारी अनुपस्थित पाये गये जिनका एक दिन का वेतन रोकने के साथ ही स्पष्टीकरण प्रस्तुत करने के निर्देश दिए है।

निरीक्षण के दौरान विलम्ब से आने वाले समाज कल्याण विभाग के 03 कर्मचारी डीआरडीए के 01 कर्मचारी आरईएस विभाग के 04 कर्मचारी जिला कृषि अधिकारी कार्यालय के 02 कर्मचारी जिला पंचायतराज अधिकारी कार्यालय के 02 कर्मचारी मुख्य पशुचिकित्साधिकारी कार्यालय के 01कर्मचारी सहकारिता विभाग के 01 कर्मचारी जिला विकास अधिकारी कार्यालय के 03 कर्मचारियों से विलम्ब से कार्यालय पहुंचने का स्पष्टीकरण प्राप्त करने के निर्देश दिए है।जिलाधिकारी ने जनपद के सभी अधिकारियों एवं कर्मचारियों को निर्देशित करते हुए कहा है कि सभी अधिकारी/कर्मचारी समय से कार्यालय पहुंचे तथा उनके कार्यालय में आने वाले लोगो की समस्याओं को नियमानुसार शीघ्रता से निस्तारित करने के निर्देश दिए है। उन्होंने कहा कि उनके द्वारा कार्यालयों का नियमित रूप से औचक निरीक्षण किया जाता रहेगा और यदि उनके निरीक्षण में कोई भी अधिकारी एवं कर्मचारी बिना किसी पूर्व सूचना के अनुपस्थित पाया जायेगा या कार्यों में लापरवाही या उदासीनता पायी गयी, तो उसके विरूद्ध कड़ी कार्रवाई की जायेगी।

जिलाधिकारी ने विकास भवन का निरीक्षण करते हुए विकास भवन एवं यहां पर स्थित कार्यालयों के बारे में मुख्य विकास अधिकारी से विस्तार से जानकारी प्राप्त की और विकास भवन में स्थित कार्यालयों का निरीक्षण किया और महाकुम्भ के दौरान बनाये गये दो अत्याधुनिक गंगा एवं यमुना सभागार एवं सुदृढ़ीकृत सरस सभागार को देखा। जिलाधिकारी ने सर्वप्रथम स्थापना कक्ष का निरीक्षण किया और वहां पर खण्ड विकास अधिकारियों एवं ग्राम विकास अधिकारियों की व्यक्तिगत पत्रावलियों एवं सेवा पुस्तिका का अवलोकन करते हुए सभी अधिकारियों एवं कर्मचारियों की सभी प्रविष्टियां अद्यतन रखने के निर्देश दिए है। उन्होंने तत्पश्चात जिला पंचायत कार्यालय के अन्तर्गत स्वच्छ भारत मिशन अभियान सेक्शन का निरीक्षण करते हुए जिला पंचायतराज अधिकारी से स्वच्छ भारत मिशन के तहत बनाये जा रहे शौचालयों की जानकारी लेते हुए स्वच्छ भारत मिशन के तहत बनाये जा रहे शौचालयों के निर्माण कार्य की नियमित मानीटरिंग करने एवं निर्माण कार्य में विलम्ब होने पर सम्बंधित ग्राम सचिव एवं ग्राम प्रधान की जिम्मेदारी तय करने के निर्देश दिए है।

जिलाधिकारी ने विकास भवन के भूतल पर वृद्धजनों की सुविधा हेतु समाज कल्याण विभाग के वृद्धावस्था पेंशन सेक्शन का निरीक्षण किया और पेंशन के कार्य हेतु आयें वृद्धजनों से वार्ता कर उनकी पेंशन के बारे में जानकारी ली।कार्यालय में आये हुए वृद्ध व्यक्ति के द्वारा जिलाधिकारी को बताया कि उनकी पेंशन रूक गई है और बैंक खाते में नहीं आ रही है। जिसपर जिलाधिकारी ने सम्बंधित अधिकारी से पेंशन रूकने के कारण के बारे में पूछा जिसपर बताया गया कि इनकी वृद्धावस्था पेंशन रूकी नहीं है अपितु इनके ही दूसरे बैंक खाते में नियमित रूप से आ रही है।तत्पश्चात जिलाधिकारी ने विकास भवन का भ्रमण कर निरीक्षण किया और मुख्य विकास अधिकारी से विकास भवन में साफ-सफाई की बेहतर व्यवस्था एवं पार्किंग व्यवस्था को व्यवस्थित करने के लिए कहा है।उन्होंने महाकुम्भ-2025 के दौरान विकास भवन की बाहरी दीवारों पर बनायी गयी महाकुम्भ थीम की पेंटिंग की प्रशंसा करते हुए शेष रह गयी बाहरी दीवारों पर भी वॉलपेटिंग कराये जाने के लिए कहा है।इस अवसर पर मुख्य विकास अधिकारी हर्षिका सिंह सहित अन्य अधिकारीगण मौजूद रहे।

68 वर्षीय बुजुर्ग की किडनी से निकले 71 पत्थर एसआरएन हॉस्पिटल में हुआ सफल ऑपरेशन

संवाददाता प्रयागराज।।मोतीलाल नेहरू मेडिकल कॉलेज के स्वरूप रानी नेहरू चिकित्सालय (एसआरएन)में चिकित्सकों ने एक बड़ी सफलता हासिल की है।बांदा जिले के रहने वाले 68 वर्षीय हनीफ खान की किडनी से एक ही ऑपरेशन में 71 पथरी निकाली गई। लंबे समय से तेज़ दर्द और पेशाब की समस्या झेल रहे मरीज की जांच में पता चला कि उनकी दोनों किडनियों में ढेर सारी पथरी जमी हुई है। समय रहते ऑपरेशन कर चिकित्सकों ने उनकी किडनी को सुरक्षित रखा और मरीज को राहत दिलाई।यह जटिल ऑपरेशन यूरोलॉजी विभागाध्यक्ष प्रो.डॉ.दिलीप चौरसिया के नेतृत्व में हुआ। टीम में चिकित्सक डॉ. शिरीष मिश्रा डॉ.दीपक गुप्ता और डॉ. आदर्श शामिल रहे।चिकित्सकों ने बताया कि एक साथ इतनी बड़ी संख्या में पथरी निकलना बहुत ही दुर्लभ मामला है और यह मरीज के लिए किसी चमत्कार से कम नही है। प्रो.डॉ.दिलीप चौरसिया ने कहा कि यह केस काफी चुनौतीपूर्ण था।अगर समय पर इलाज न होता तो मरीज की किडनी खराब हो सकती थी। उन्होंने लोगों से अपील की कि किसी भी तरह की पेशाब की दिक्कत, दर्द या बार-बार होने वाले संक्रमण को नजरअंदाज न करें और तुरंत विशेषज्ञ से संपर्क करें।इस सर्जरी में एनेस्थीसिया टीम का भी खास योगदान रहा। टीम में एसोसिएट प्रोफेसर डॉ.धर्मेंद्र यादव, डॉ.प्रगति सक्सेना डॉ. मोहम्मद अज़ीम और डॉ. प्रियंका शामिल रहीं।उन्होंने ऑपरेशन के दौरान मरीज की स्थिति को पूरी तरह नियंत्रित रखा, जिससे सर्जरी सफलतापूर्वक पूरी हो सकी।मरीज के परिजनों ने कहा कि चिकित्सकों की मेहनत और समय पर किए गए ऑपरेशन ने हमारे पिता को नई जिंदगी दी है। उन्होंने प्रो. डॉ. दिलीप चौरसिया और मेडिकल कॉलेज प्रशासन के प्रति आभार जताया।यह खबर जैसे ही बांदा और आसपास के इलाके में पहुंची लोगों के बीच चर्चा का विषय बन गई।गांव-घर में कहा जा रहा है कि प्रयागराज के एसआरएन अस्पताल में अब मरीजों को बड़ी बीमारियों से भी निजात मिल रही है।

जिलाधिकारी की अध्यक्षता में जिला सैनिक बन्धु की बैठक सम्पन्न

संजय द्विवेदी

प्रयागराज।जिलाधिकारी मनीष कुमार वर्मा की अध्यक्षता में शुक्रवार को संगम सभागार में जिला सैनिक बन्धु की बैठक सम्पन्न हुई।बैठक में भूतपूर्व सैनिकों एवं उनके आश्रितों द्वारा भूमि विवाद अवैध कब्जा शस्त्र लाइसेन्स के रेनुवल पेंशन सम्बन्धी प्रकरण सड़क चौड़ीकरण गाड़ियों की अवैध पार्किंग बाउंड्रीवाल सहित अन्य समस्याओं को जिलाधिकारी के समक्ष प्रस्तुत किया जिसपर जिलाधिकारी ने सभी सम्बंधित विभागों के अधिकारियों को भूतपूर्व सैनिकों एवं उनके आश्रितों की समस्याओं को प्राथमिकता पर निस्तारित कराने के निर्देश दिए है।

जिलाधिकारी ने भूतपूर्व सैनिकों व उनके आश्रितों को आश्वस्त किया कि जो भी शिकायतें प्राप्त हुई है उसका नियमानुसार गुणवत्तापूर्ण ढंग से प्राथमिकता के आधार पर निस्तारण कराया जायेगा।बैठक में मुख्य विकास अधिकारी हर्षिका सिंह सहित जिला सैनिक कल्याण एवं पुनर्वास अधिकारी सहित भूतपूर्व सैनिक/आश्रित व अन्य सम्बन्धित उपस्थित रहे।

विश्वविद्यालय की आधारशिला तथा भव्यता के प्रतीक हैं पुरा छात्र -प्रोफेसर यादव


प्रयागराज । उत्तरप्रदेश राजर्षि टंडन मुक्त विश्वविद्यालय, प्रयागराज में बृहस्पतिवार को सरस्वती परिसर स्थित अटल प्रेक्षागृह में पुरातन छात्र सम्मेलन का आयोजन किया गया। पुरातन छात्र सम्मेलन के मुख्य अतिथि प्रोफेसर केदार नाथ सिंह यादव, पूर्व कुलपति, उत्तर प्रदेश राजर्षि टंडन मुक्त विश्वविद्यालय, प्रयागराज ने कहा कि विश्वविद्यालय के छात्र ही इसकी आधारशिला पहचान और भव्यता का प्रतीक होते हैं। पुरातन छात्र परिषद की महत्वपूर्ण भूमिका है। पुरातन छात्रों को विश्वविद्यालय की उन्नति एवं तरक्की में महत्वपूर्ण योगदान करना चाहिए। प्रोफेसर यादव ने कहा कि पुरातन छात्र समारोह एक ऐसा अवसर है जब नए और पुराने छात्र मिलकर एक साथ विश्वविद्यालय में एकत्रित होते हैं, सुख-दु:ख साझा करते हैं और एक दूसरे की सहायता करते हैं। ऐसे आयोजनों से पुरा छात्रों की उपलब्धियों को जानने का अवसर प्राप्त होता है जिनसे वर्तमान विद्यार्थी प्रेरणा लेते हैं।

अध्यक्षीय उद्बोधन में मुक्त विश्वविद्यालय के कुलपति प्रोफेसर सत्यकाम ने कहा कि पुरातन छात्र सम्मेलन प्रयागराज के कुंभ की तरह है। उसी भव्यता से इसका आयोजन विश्वविद्यालय में प्रत्येक वर्ष होना चाहिए। उन्होंने पुरातन छात्रों से अपील की कि वे यहां से शिक्षा पूर्ण करने के उपरांत जहां भी जाएं, वहां सामाजिक एवं शैक्षणिक उन्नयन के कार्य करें। देश की सेवा के लिए सबसे परम धर्म यही है की वह जिस क्षेत्र में कार्य करें पूरी ईमानदारी से करें। साथ ही अपनी भारतीय ज्ञान परंपरा को न भूलें। भारतीय संस्कृति की परंपरा को छात्र याद रखें। इस दिशा में मुक्त विश्वविद्यालय ने नवीन पाठ्यक्रमों का निर्माण किया है। जिसमें कुंभ दर्शन, भगवतगीता आदि प्रमुख हैं। प्रोफेसर सत्यकाम ने महिला शिक्षा के साथ - साथ निर्धनों एवं वंचितों की शिक्षा पर जोर दिया। उन्होंने विकसित भारत की संकल्पना के विविध पक्षों पर चर्चा करते हुए कहा कि मुक्त विश्वविद्यालय की कार्यप्रणाली ऐसी है कि वह एक नए भारत के निर्माण की संकल्पना को साकार करने में सक्षम है।

विशिष्ट अतिथि पी.एन.द्विवेदी, राज्य सूचना आयुक्त, उत्तर प्रदेश, लखनऊ ने गुरु छात्र सम्मेलन की परंपरागत पद्धति को याद करते हुए कहा कि प्रयाग कि धरती पर महर्षि भारद्वाज ने शिष्य रूप में श्रीराम को दीक्षा दी थी। यह स्थान संस्कृति के उत्थान, एक दूसरे के जुड़ाव और परंपरागत से लकर आधुनिक शिक्षा पद्धति की उद्गमस्थली रही है। श्री द्विवेदी ने कहा कि प्रयागराज में शिक्षा के क्षेत्र में भारतीय ज्ञान परंपरा और आधुनिक शिक्षा प्रणाली के साथ ही दूरस्थ शिक्षा प्रणाली का भी समागम है। इन सभी महत्वपूर्ण विषयों पर शोध की आवश्यकता है। उन्होंने पुरा छात्र सम्मेलन को कृष्ण सुदामा के मिलन की परंपरा से जोड़ते हुए कहा कि विश्वविद्यालय के सभी छात्रों को एक दूसरे की समस्याओं के समाधान और विकास के सामाजिक और आर्थिक आयाम मिलकर खोजने चाहिए।

विशिष्ट अतिथि डॉ जे डी गंगवार, वित्त अधिकारी, इन्दिरा गाँधी नेशनल ओपन यूनिवर्सिटी, नई दिल्ली ने कहा कि दूरस्थ शिक्षा प्रणाली में छात्रों के हितों का बहुत ध्यान रखा जाता है। व्यक्तिगत संबंध और ज्ञान के साथ-साथ शैक्षणिक उन्नयन के भी अवसर प्राप्त होते हैं। यह एक ऐसा अवसर होता है जब पूर्व और वर्तमान छात्रों का मिलन होता है। जहां भूतपूर्व छात्र अपने अनुभव साझा करते हैं और वर्तमान छात्र अपने स्वर्णिम भविष्य की संभावनाएं एवं संकल्पनाएं तलाशते हैं। शिक्षकों को भी अपने पुराने छात्रों से मिलकर भावनात्मक सुखद अनभूति होती है और उनकी शैक्षणिक तथा आर्थिक उन्नति देखकर गर्व का अनुभव होता है। संचालन डॉ अब्दुर्रहमान ने किया। समन्वयक डॉ ज्ञान प्रकाश यादव ने कार्यक्रम की विस्तृत रूपरेखा बताते हुए अतिथियों का स्वागत तथा कुलसचिव कर्नल विनय कुमार ने आभार व्यक्त किया। इस अवसर पर अतिथियों ने स्वामी विवेकानन्द युवा सशक्तिकरण योजना के अंतर्गत विश्वविद्यालय में नामांकित शिक्षार्थियों को टेबलेट का वितरण किया।

सम्मेलन के द्वितीय सत्र में विश्वविद्यालय के पुरातन छात्रों को सम्मानित किया गया। जिनमें पूर्व जिला सूचना अधिकारी जे एन यादव, पूर्व वित्त अधिकारी सुशील कुमार गुप्ता, नायब तहसीलदार अमीषा सिंह, खंड विकास अधिकारी अरुण सिंह, बाल कल्याण समिति प्रयागराज की सदस्य सुषमा शुक्ला, ज्योतिषाचार्य श्री प्रकाश द्विवेदी, बृजेश सिंह, बलराम सिह, प्रमोद यादव, कर्नल ज्ञान प्रकाश सिंह, शिखा जायसवाल, सुशील कुमार तिवारी आदि प्रमुख रहे। इस अवसर पर पुरातन छात्रों ने विश्वविद्यालय से जुड़ी अपनी यादेखुशनुमा यादें ताजा की तथा विश्वविद्यालय के विकास में सहयोग करने का आश्वासन दिया।

सम्मेलन के तृतीय सत्र में पुरातन छात्रों के लिए सांस्कृतिक संध्या का भी आयोजन किया गया। जिसमें सुप्रिया, दीप्ति, सौरभ, श्रीकेश यादव, पूनम तिवारी, ज्योति तिवारी, सत्यांशिका, साहब नारायण शर्मा, दिलीप तथा कविता ने गणेश वंदना, ढेड़िया, डांडिया, योग नत्य, कविता गजल शंकर भजन तथा कृष्ण भजन आदि का मंचन किया। इस अवसर पर कुलपति प्रोफेसर सत्यकाम ने सभी कलाकारों को सम्मानित किया। उक्त जानकारी जनसंपर्क अधिकारी डा. प्रभात चंद्र मिश्र ने दी।

विकसित राष्ट्र के लिए नवीनतम शोध तकनीकों का उपयोग जरूरी - प्रोफेसर सत्यकाम

प्रयागराज । उत्तर प्रदेश राजर्षि टंडन मुक्त विश्वविद्यालय, प्रयागराज के विज्ञान विद्याशाखा, नेहरू ग्राम भारती विश्वविद्यालय एवं शुआट्स के संयुक्त तत्वावधान में रिसेंट एडवांसेज इन रिसर्च टेक्निक: विकसित भारत 2047 विषय पर अंतर्राष्ट्रीय कार्यशाला का उद्घाटन मंगलवार को तिलक सभागार में किया गया।कार्यशाला की अध्यक्षता करते हुए उत्तर प्रदेश राजर्षि टंडन मुक्त विश्वविद्यालय, प्रयागराज के कुलपति प्रोफेसर सत्यकाम ने कहा कि शोध किसी भी राष्ट्र की प्रगति का आधार है और भारत को 2047 तक विकसित राष्ट्र बनाने के लिए नवीनतम शोध तकनीकों का समुचित उपयोग अनिवार्य है।

मुख्य अतिथि प्रोफेसर अशोक कुमार सिंह, पूर्व निदेशक, डी एस टी, नई दिल्ली ने कहा कि अनुसंधान तभी सार्थक है जब उसके परिणाम समाज और राष्ट्र की प्रगति में योगदान दें। भारत को 2047 तक विकसित राष्ट्र बनाने के लिए शोध एवं नवाचार को सामाजिक सरोकारों से जोड़ना आवश्यक है। प्रोफेसर सिंह ने डिजिटल इनोवेशन, आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस और सतत विकास विषयों पर अपने विचार व्यक्त किए।

विशिष्ट अतिथि प्रोफेसर बृजेश प्रताप सिंह, सांख्यिकी विभाग, बी एच यू, वाराणसी ने कहा कि नई शोध तकनीकें केवल शिक्षा या विज्ञान तक सीमित नहीं हैं, बल्कि इनका प्रयोग स्वास्थ्य, पर्यावरण, कृषि और सामाजिक विकास के लिए भी होना चाहिए। उन्होंने विद्यार्थियों और शोधार्थियों को वैश्विक शोध प्रवृत्तियों के साथ कदम मिलाने का आह्वान किया।

कार्यक्रम का संचालन डॉ ज्ञान प्रकाश यादव एवं अतिथियों का स्वागत विज्ञान विद्या शाखा के निदेशक प्रोफेसर आशुतोष गुप्ता ने किया। कार्यशाला के बारे में विस्तृत जानकारी प्रोफेसर ए के मलिक तथा धन्यवाद ज्ञापन डॉ जी पी यादव ने किया।

कार्यशाला में देश-विदेश के विशेषज्ञ और प्रतिभागीगण आॅनलाइन और आॅफलाइन माध्यम से जुड़े रहे। उन्होंने डेटा एनालिटिक्स, मशीन लर्निंग, पर्यावरणीय अध्ययन, स्वास्थ्य विज्ञान, समाजशास्त्रीय शोध तथा अन्य आधुनिक शोध तकनीकों पर अपने शोध पत्र प्रस्तुत किए। शोधार्थियों एवं प्रतिभागियों के लिए विशेष व्यावहारिक सत्र आयोजित किए गए, जिनमें उन्हें नवीनतम सॉफ़्टवेयर और शोध उपकरणों का प्रशिक्षण प्रदान किया गया।

कार्यशाला के प्रथम तकनीकी सत्र के वक्ता प्रोफेसर बृजेश प्रताप सिंह, सांख्यिकी विभाग, बी एच यू, वाराणसी ने शोध योजना के विभिन्न चरणों, शोध समस्या की पहचान, उद्देश्यों के निर्धारण तथा उपयुक्त सांख्यिकीय विधियों के चयन पर विस्तार से प्रकाश डाला। श्री सिंह ने बताया कि सही सांख्यिकीय तकनीक अपनाने से शोध निष्कर्ष अधिक विश्वसनीय और उपयोगी बनते हैं। प्रतिभागियों ने उनसे प्रश्न पूछे और शोध कार्य से जुड़े व्यावहारिक पहलुओं पर चर्चा की। कार्यशाला के द्वितीय सत्र के मुख्य वक्ता प्रोफेसर अशोक कुमार सिंह पूर्व निदेशक, डी एस टी, नई दिल्ली ने शोध विधियों की विभिन्न शैलियों, गुणात्मक एवं मात्रात्मक दृष्टिकोणों, तथा शोध परियोजना लेखन की संरचना पर विस्तार से जानकारी दी। प्रो सिंह ने शोध रिपोर्ट तैयार करने के चरणों, संदर्भ लेखन और निष्कर्ष प्रस्तुत करने की प्रक्रिया पर विशेष बल दिया। कार्यशाला के तीसरे सत्र के मुख्य वक्ता प्रोफेसर माधवेंद्र मिश्रा, प्रबंधन अध्ययन विभाग, आई आई आई टी, प्रयागराज ने शोध समस्या की पहचान, उसके विश्लेषण और समाधान की दिशा में व्यवस्थित दृष्टिकोण अपनाने पर बल दिया। उक्त जानकारी जनसंपर्क अधिकारी डा. प्रभात चन्द्र मिश्र ने दी।

प्रयागराज: विधायक पूजा पाल पर अभद्र टिप्पणी, उमेश यादव पर मुकदमा दर्ज

प्रयागराज। उत्तर प्रदेश के प्रयागराज जिले में कर्नलगंज थाने में चायल की विधायक पूजा पाल को लेकर अभद्र टिप्पणी करने वाले के खिलाफ शनिवार रात मुकदमा दर्ज किया गया है। यह मुकदमा अधिवक्ता श्याम चन्द्र पाल की तहरीर पर दर्ज किया गया। पुलिस कहना है कि साेशल मीडिया एक्स पर अभद्र टिप्पणी करने वाले के खिलाफ जांच शुरू कर दी गई है।

जांच के आधार पर की गई कार्रवाई

अपर पुलिस उपायुक्त नगर अभिजीत कुमार ने रविवार काे बताया कि सराय ममरेज थाना क्षेत्र के सदरेपुर निवासी अधिवक्ता श्याम चन्द्र पाल की तहरीर पर कर्नलगंज थाने में चायल की विधायक पूजा पाल पर अभद्र टिप्पणी करने वाले उमेश यादव के खिलाफ धारा 79, 356(2),353(2) और 66 आईटी एक्ट के तहत मुकदमा दर्ज किया गया है। मामले में जांच शुरू कर दी गई। गुण और दोष के आधार पर विधिक कार्रवाई की जाएगी।

अधिवक्ता श्याम चन्द्र पाल द्वारा यह लगाया गया था आरोप

उल्लेखनीय है कि कर्नलगंज थाने में दी गई तहरीर के मुताबिक अधिवक्ता श्याम चन्द्र पाल ने आरोप लगाया है उमेश यादव ने साेशल मीडिया एक्स प्लेटफार्म पर जो टिप्पणी की गई है। उस टिप्पणी काे लेकर चरवाहा समाज, गड़ेरिया समाज की महिलाओं सहित पूरे समाज को ठेस पहुंची है। ऐसे में इनके खिलाफ विधिक कार्रवाई की जाए। -

79वें स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर ध्वजारोहण कर राष्ट्रीय ध्वज को सलामी दी गई

प्रयागराज। 79वें स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर जिलाधिकारी कार्यालय एवं पुलिस आयुक्त कार्यालय सहित सभी सरकारी, अर्धसरकारी एवं सभी स्कूलों एवं कालेजों में ध्वजारोहण किया गया। इसके साथ राष्ट्रीय ध्वज को सलामी देने के राष्ट्रगान किया। स्वतंत्रता दिवस के मौके पर सुरक्षा के मद्देनजर पुलिस टीमें सक्रिय हैं।

प्रयागराज जिलाधिकारी मनीष कुमार वर्मा ने कलेक्ट्रेट परिसर में स्वतंत्रता दिवस के मौके पर ध्वजारोहण किया। इसी तरह प्रयागराज पुलिस आयुक्त जोगेन्दर सिंह ने पुलिस कार्यालय में ध्वजारोहण किया। पुलिस उपायुक्त नगर अभिषेक भारती ने कोतवाली में ध्वजारोहण किया। राष्ट्रीय ध्वज को सलामी दी गई तथा समस्त अधिकारी एवं कर्मचारियों को भारतीय संविधान के प्रस्तावना की शपथ दिलाकर स्वतंत्रता दिवस की शुभकामनाएं दी । प्रयागराज नगर निगम कार्यालय परिसर में महापौर गणेश केसरवानी ने स्वतंत्रता दिवस के मौके पर ध्वजारोहण किया और राष्ट्रगान किया। इसी तरह सभी राजनीतिक दलों, स्वयंसेवी संगठन, सरकारी स्कूल, कालेजों, विश्व विद्यालय सहित सभी स्थानों पर ध्वजारोहण किया गया।

निरन्तर संवाद से समाप्त होगा रैगिंग का विकृत स्वरूप- प्रोफेसर सत्यकाम

प्रयागराज । उत्तर प्रदेश राजर्षि टंडन मुक्त विश्वविद्यालय, प्रयागराज में विश्वविद्यालय अनुदान आयोग की पहल पर एण्टी रैगिंग सप्ताह के उपलक्ष्य में बुधवार को उच्च शिक्षण संस्थाओं में रैगिंग वरदान है या अभिशाप विषय पर एक वेबिनार का आयोजन किया गया। वेबिनार की अध्यक्षता करते हए विश्वविद्यालय के कुलपति प्रोफेसर सत्यकाम ने कहा कि संस्थाओं के वरिष्ठ शिक्षार्थी कनिष्ठ शिक्षार्थियों से भ्रातृवत्, मित्रवत् व्यवहार करें और वे एक साथ बैठें, एक-दूसरे से मिले तथा संस्था के नियमों एवं क्रियाकलापों की जानकारी साझा करें तथा परिसर में ऐसा वातावरण बनाए, जिसमें सभी एक-दूसरे के मित्र बनें शत्रु नहीं क्योंकि शत्रुता संस्था के लिए विनाशकारी होती है। एक-दूसरे से लगातार संवाद में रहें, क्रोध एवं आवेश से बचें। छोटे भाइयों के साथ मिल-जुलकर कार्य करें और संस्था के विकास का पथ प्रशस्त करें। शिक्षकों को भी शिक्षार्थियों से निरन्तर संवाद स्थापित करते हुए रैगिंग के विकृत स्वरूप को समाप्त करने के लिए प्रेरित किया।

वेबिनार के मुख्य वक्ता प्रोफेसर प्रदीप कुमार पाण्डेय, निदेशक, शोध एवं विकास ने अपने वक्तव्य में कहा कि हमें शिक्षार्थियों के साथ मिलकर कुछ ऐसा कार्य करना चाहिए जिससे यह रैगिंग जो उच्च शिक्षण संस्थाओं के लिए अभिशाप बनी हुई है वह संस्थाओं के लिए वरदान बनें। रैगिंग नाम की व्याख्या के साथ ऐतिहासिक पृष्ठभूमि पर प्रकाश डालते हुए प्राचीन गुरुकुल परम्परा की व्याख्या की तथा बताया कि उस समय ऐसी व्यवस्था नहीं थी। गुरुजन ही नए शिक्षार्थियों का परिचय वरिष्ठ छात्रों से करवाते थे। मूलत: यह रैगिंग पहले नहीं पाई जाती थी। कालान्तर में वरिष्ठों के हाथ में कनिष्ठों के स्वागत एवं संस्थान के बारे में बताए जाने का दायित्व आया तो यह इतने विकृत स्वरूप में सामने आने लगा कि शिक्षार्थी निन्दनीय कृत्य का शिकार होने लगे तथा कहीं-कहीं तो नव-प्रवेशित छात्र आत्महत्या की ओर कदम बढ़ाने लगे।

प्रो. पाण्डेय ने रैगिंग के दुष्परिणामों की चर्चा करते हुए कहा कि आज शिक्षकों और शिक्षार्थियों दोनों की जिम्मेदारी है कि रैगिंग जैसे घृणित कृत्य को समाप्त करने के लिए जागरूकता लाएं। वेबिनार का सञ्चालन एवं धन्यवाद ज्ञापन प्रोफेसर विनोद कुमार गुप्त, संयोजक, एन्टी रैगिंग समिति ने किया तथा वेबिनार के उद्देश्यों पर प्रकाश डाला। इस अवसर पर एन्टी रैगिंग समिति के सदस्य प्रोफेसर पाल, डॉ. आनन्दानन्द त्रिपाठी, डॉ. सुरेन्द्र कुमार, डॉ. सुषमा सिंह तथा प्रो. छत्रसाल सिंह, प्रो. सन्तोषा कुमार, डॉ. शशिभूषण राम त्रिपाठी, डॉ. अल्का वर्मा, डॉ. त्रिविक्रम तिवारी आदि शिक्षक तथा विश्वविद्यालय के शोध छात्रों एवं शिक्षार्थियों ने प्रतिभाग किया।

बग्घी पर निकली SHO की विदाई, प्रयागराज में बना चर्चा का विषय

प्रयागराज । उत्तर प्रदेश के प्रयागराज में झूंसी थानाध्यक्ष रहे इंस्पेक्टर उपेंद्र प्रताप सिंह को विदाई देने का नज़ारा किसी शादी की बारात से कम नहीं था। फूलों से सजी बग्घी, बैंड-बाजे की गूंज, और सड़कों पर उमड़ी भीड़ ने सोमवार को पूरे शहर का ध्यान खींच लिया। जीटी रोड पर जब यह बग्घी गुज़री तो लोग रुककर तस्वीरें और वीडियो बनाने लगे। बग्घी में बैठे इंस्पेक्टर सिंह फूल-मालाओं से लदे और साफ-सुथरी वर्दी में मुस्कुरा रहे थे, जबकि चारों तरफ उनके समर्थकों और शुभचिंतकों का हुजूम था। कई लोग खुशी में तालियां बजा रहे थे, तो कुछ की आंखें इस भावुक पल में नम हो गईं।

स्थानांतरण के बाद अनोखी विदाई

पुलिस आयुक्त जोगेंद्र कुमार द्वारा जारी 20 निरीक्षकों और उप-निरीक्षकों के स्थानांतरण आदेश में उपेंद्र प्रताप सिंह का नाम भी शामिल था। उनका तबादला गैर-जनपद किया गया। भले ही इस सूची में कई थानाध्यक्ष बदले गए हों, लेकिन उपेंद्र प्रताप सिंह की विदाई जिस शान-ओ-शौकत से हुई, उसने उन्हें बाकी से अलग बना दिया।

त्वरित कार्रवाई के लिए मशहूर थे

2023 में पूरामुक्ति थाने से झूंसी थाने की कमान संभालने वाले उपेंद्र प्रताप सिंह ने करीब दो वर्षों तक क्षेत्र में कानून-व्यवस्था को काबू में रखा। उनकी छवि एक सख्त, निष्पक्ष और ईमानदार पुलिस अधिकारी की रही, जो किसी भी राजनीतिक दबाव में काम नहीं करते थे। स्थानीय लोग बताते हैं कि वे हमेशा जनता की समस्याओं को प्राथमिकता देते और त्वरित कार्रवाई के लिए मशहूर थे।

सोशल मीडिया पर बग्घी वाली यह विदाई का वीडियो वायरल हो रहा

इस विदाई ने न केवल उनकी लोकप्रियता का प्रमाण दिया, बल्कि यह भी दिखाया कि पुलिस और जनता के बीच भरोसे का रिश्ता कैसे बन सकता है। सोशल मीडिया पर बग्घी वाली यह विदाई का वीडियो वायरल हो रहा है और लोग इसे “असली सम्मान” बता रहे हैं।