लखनऊ में भारी बारिश से जनजीवन प्रभावित, आठवीं तक के स्कूल बंद

लखनऊ । राजधानी में गुरुवार देर रात से शुरू हुई बारिश का सिलसिला शुक्रवार सुबह तक जारी रहा, जिससे कई इलाकों में जलभराव हो गया। हालात को देखते हुए जिलाधिकारी विशाख जी ने सभी बोर्डों के कक्षा 8 तक के स्कूलों को आज के लिए बंद करने का आदेश जारी किया है। आदेश में स्पष्ट किया गया है कि लगातार हो रही वर्षा और जलभराव से विद्यार्थियों की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए यह निर्णय लिया गया है।

अभी थमने वाली नहीं बारिश, मौसम विभाग की चेतावनी

इस बीच, मौसम विभाग ने चेतावनी दी है कि प्रदेश के कई हिस्सों में फिलहाल बरसात का दौर थमने वाला नहीं है। बांग्लादेश के ऊपर बने सिस्टम और बंगाल की खाड़ी में सक्रिय मौसम तंत्र के कारण अगले कुछ दिनों तक रुक-रुक कर बारिश जारी रहेगी। आंचलिक मौसम विज्ञान केंद्र लखनऊ के वरिष्ठ वैज्ञानिक अतुल कुमार सिंह के अनुसार, तराई से लेकर दक्षिणी जिलों तक भारी वर्षा की संभावना बनी हुई है।

39 जिलों में अलर्ट

मौसम विभाग ने शुक्रवार के लिए विंध्य, तराई और पूर्वांचल के 39 जिलों में भारी बारिश का येलो अलर्ट जारी किया है। इनमें प्रयागराज, वाराणसी, चित्रकूट, बांदा, सोनभद्र, मिर्जापुर, चंदौली, भदोही, जौनपुर, गाजीपुर, बलिया, कानपुर नगर, रायबरेली, सहारनपुर, आगरा, मथुरा, मुरादाबाद, रामपुर, बदायूं सहित अन्य जिले शामिल हैं। बृहस्पतिवार को बहराइच में सर्वाधिक 71 मिमी और लखनऊ में 59 मिमी वर्षा दर्ज की गई।लगातार हो रही बारिश से नदियों का जलस्तर बढ़ रहा है, जिससे कई जिलों में बाढ़ और जलभराव की स्थिति ने जनजीवन को अस्त-व्यस्त कर दिया है।
निलंबित आईएएस अभिषेक प्रकाश के करीबी निकांत जैन के कई ठिकानों पर ईडी की छापेमारी

लखनऊ । प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने निलंबित आईएएस अधिकारी अभिषेक प्रकाश से जुड़े भ्रष्टाचार और बैंक फ्रॉड के मामलों में गुरुवार सुबह बड़ी कार्रवाई करते हुए उनके करीबी निकांत जैन के लखनऊ, नोएडा और मेरठ स्थित ठिकानों पर एक साथ छापेमारी की। लखनऊ के गोमतीनगर स्थित विशाल खंड क्षेत्र और गोल्डन ब्लॉसम रिजॉर्ट से जुड़े परिसरों में ईडी टीम की दबिश कई घंटों तक चली।

निवेशकों से काम करवाने के नाम पर अवैध वसूली करता था

निकांत जैन पर आरोप है कि वह पूर्व डीएम अभिषेक प्रकाश के नाम का उपयोग कर विभिन्न निवेशकों से काम करवाने के नाम पर अवैध वसूली करता था। यूपी एसटीएफ ने निकांत को इसी साल 20 मार्च को रिश्वतखोरी के आरोप में गिरफ्तार कर जेल भेजा था।

जल्द ही एजेंसी कुछ और कर सकती है गिरफ्तारियां

गोमती नगर थाने में दर्ज एफआईआर के आधार पर 16 पन्नों की चार्जशीट कोर्ट में दाखिल की गई थी।हालांकि एक मामले में कोर्ट से उन्हें जमानत मिल चुकी थी, लेकिन दूसरी एफआईआर के चलते उनकी रिहाई नहीं हो सकी।इसके अलावा, निकांत जैन, उनके भाई सुकांत जैन और भाभी वैशाली जैन के खिलाफ इंडियन बैंक ने हजरतगंज कोतवाली में करीब 4 करोड़ रुपये की लोन धोखाधड़ी का मुकदमा दर्ज कराया है।

बैंक से ऋण लेकर जानबूझकर उसका भुगतान नहीं किया

बैंक प्रबंधक आशीष जिंदल की ओर से दर्ज एफआईआर में यह दावा किया गया है कि जैन परिवार ने बैंक से ऋण लेकर जानबूझकर उसका भुगतान नहीं किया।ईडी अब यह पता लगाने में जुटी है कि रिश्वत और बैंक धोखाधड़ी के इन मामलों में और कौन-कौन लोग शामिल हैं। छापों के बाद संबंधित दस्तावेजों की जांच की जा रही है और जल्द ही एजेंसी कुछ और गिरफ्तारियां कर सकती है।
फर्जी चंदे के नाम पर टैक्स छूट का घोटाला, 20 राजनीतिक दलों की भूमिका उजागर

लखनऊ । देश भर में आयकर में छूट पाने के लिए बड़े पैमाने पर चल रहे फर्जीवाड़े का पर्दाफाश हुआ है, जिसमें 20 पंजीकृत लेकिन गैर मान्यता प्राप्त राजनीतिक दलों की संलिप्तता सामने आई है। ये दल मुख्यतः एक कमरे के दफ्तरों से संचालित होते हैं, लेकिन इनका इस्तेमाल टैक्स बचाने के गोरखधंधे में किया जा रहा था।

CA, वकील और बिचौलिए सक्रिय रूप से शामिल

इस धोखाधड़ी के पीछे चार्टर्ड अकाउंटेंट (CA), वकील और बिचौलिए सक्रिय रूप से शामिल हैं। वे इन राजनीतिक दलों को फर्जी दानदाताओं के जरिए चंदा दिलवाते हैं, जिससे दान देने वालों को टैक्स में छूट मिलती है। बदले में, दान की रकम का बड़ा हिस्सा बतौर कमीशन लौटाया जाता है।

बीस दल आयकर जांच के दायरे में

आयकर विभाग ने 14 जुलाई को देशभर में 150 से अधिक ठिकानों पर छापेमारी कर इस रैकेट से जुड़े दस्तावेज और डिजिटल सबूत जुटाए। इस जांच में वाराणसी के दो सगे भाई – जो CA हैं – का नाम सामने आया है, जो वर्षों से इसी तरीके से आयकर रिटर्न में हेरफेर कर रहे थे। उनके ऑफिस और ठिकानों से बड़ी मात्रा में फर्जी दस्तावेज मिले हैं।

कोराेना के बाद फर्जी रिटर्न दाखिल करने के मामलों में आयी तेजी

विशेष रूप से कोरोना महामारी के बाद से इस तरह के फर्जी रिटर्न दाखिल करने के मामलों में तेजी से बढ़ोतरी हुई है। दिलचस्प बात यह है कि हाल ही में निर्वाचन आयोग द्वारा जिन 119 राजनीतिक दलों को निष्क्रियता के चलते कारण बताओ नोटिस भेजा गया है, उनमें से 20 दल आयकर जांच के दायरे में हैं।

57 लोगों ने अपनी गलती स्वीकार करते हुए दाखिल किया रिटर्न

जांच के बाद आयकर विभाग ने फर्जी चंदा दिखाकर रिटर्न दाखिल करने वाले 59 लोगों को नोटिस भेजे। इनमें से 57 लोगों ने अपनी गलती स्वीकार करते हुए संशोधित रिटर्न दाखिल कर दिया है।अब विभाग की नजर सरकारी कर्मचारियों पर है, जो इसी तरह झूठे आंकड़ों के जरिये टैक्स में छूट ले रहे थे।जांच अधिकारियों ने बताया कि इस गिरोह का भंडाफोड़ बिचौलियों के आईपी एड्रेस ट्रैक करने के बाद हुआ।

बीते सप्ताह  दो टैक्स प्रैक्टिशनरों के यहां भी छापेमारी हुई थी

इसके बाद उनके कंप्यूटर, डाटा और कार्यालय खंगाले गए, जहां से रैकेट से जुड़ी पूरी योजना का खुलासा हुआ। कई मामलों में चार्टर्ड अकाउंटेंट सीधे न होकर टैक्स प्रैक्टिशनरों के माध्यम से यह पूरा खेल चला रहे थे।बीते सप्ताह लखनऊ और गोंडा में दो टैक्स प्रैक्टिशनरों के यहां भी छापेमारी हुई, जहां से इनकी संलिप्तता के सबूत सामने आए हैं।
अवैध धर्मांतरण से आगे निकली साजिश: मानव तस्करी और अंग बिक्री रैकेट से जुड़ा गिरोह, अंतरराष्ट्रीय कनेक्शन की जांच में जुटी पुलिस

लखनऊ । यूपी के आगरा में अवैध धर्मांतरण के नाम पर सामने आया आपराधिक गिरोह अब कहीं ज्यादा खतरनाक रूप में उभरकर सामने आ रहा है। पुलिस जांच में यह खुलासा हुआ है कि गिरोह के सरगना और सदस्यों के तार मानव तस्करी और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर अंगों की अवैध बिक्री से भी जुड़े हुए हैं। पुलिस को शक है कि यह गिरोह कमजोर तबके खासकर मजदूर वर्ग की महिलाओं और लड़कियों को पहले धर्मांतरण के बहाने फंसाता, फिर उन्हें विदेश भेजने का झांसा देकर तस्करी और अन्य अपराधों में धकेलता था।

कारोबारी की दो बेटियाें के मिलने पर हुआ खुलासा

यह गंभीर खुलासा तब हुआ जब मार्च में आगरा के सदर क्षेत्र से लापता हुई कारोबारी की दो बेटियां 18 जुलाई को कोलकाता के तपसिया इलाके में मिलीं। इसके अगले ही दिन, 6 राज्यों से 10 आरोपियों की गिरफ्तारी हुई। कुछ ही दिनों बाद इस गिरोह का मास्टरमाइंड अब्दुल रहमान और उसके दो बेटे भी दिल्ली से दबोचे गए।

11 आरोपियों से पूछताछ में चौंकाने वाले तथ्य सामने आए

पुलिस रिमांड के दौरान 11 आरोपियों से पूछताछ में चौंकाने वाले तथ्य सामने आए हैं।आगरा के पुलिस आयुक्त दीपक कुमार के अनुसार, प्रारंभ में गिरोह केवल धर्मांतरण कराने तक सीमित प्रतीत हो रहा था, लेकिन जैसे-जैसे पूछताछ आगे बढ़ी, गिरोह के मानव अंगों की तस्करी और अंतरराष्ट्रीय रैकेट से जुड़ाव के संकेत मिले।

कई पीड़ित तस्करी का शिकार हुए

पुलिस ने बताया कि विशेष रूप से लड़कियों को धर्म परिवर्तन के बाद विदेश भेजने की तैयारी की जाती थी, और इस प्रक्रिया में कई पीड़ित तस्करी का शिकार हुए।हालांकि अभी तक कोई पीड़ित आगे आकर अंग बिक्री की पुष्टि नहीं कर सका है, लेकिन पुलिस सूत्रों के अनुसार कुछ गिरफ्तार आरोपियों ने रैकेट की इस परत की पुष्टि की है।

अब आगे की तफ्तीश के लिए पुलिस सीबीआई की लेगी मदद

पूरे रैकेट की कमान कथित रूप से मध्य प्रदेश निवासी सैयद दाऊद के हाथ में थी, जो कनाडा से संचालन कर रहा था। उस पर गैर-जमानती वारंट जारी किया जा चुका है और अब सीबीआई से मदद लेकर उसकी गिरफ्तारी की तैयारी की जा रही है।पुलिस आयुक्त के अनुसार अब तक की जांच में गिरोह द्वारा 1000 से अधिक लोगों का धर्मांतरण कराने की बात सामने आई है।

अब्दुल रहमान की कॉल डिटेल में 6 पाकिस्तानी नंबर भी मिले

जिन लोगों ने स्वेच्छा से धर्म बदला, वे सामने नहीं आ रहे हैं, लेकिन जिनके माता-पिता या खुद पीड़ित हैं, उन्हें गवाह बनाया जाएगा।चौंकाने वाली बात यह है कि मास्टरमाइंड अब्दुल रहमान की कॉल डिटेल में 6 पाकिस्तानी नंबर भी मिले हैं। इस संबंध में खुफिया एजेंसियों से सहयोग लेकर संपर्कों की पुष्टि की जा रही है।

इस गिरोह से जुड़े जिन आरोपियों को गिरफ्तार किया गया

रहमान कुरैशी, अब्बू तालिब, आयशा उर्फ एसबी कृष्णा, अली हसन उर्फ शेखर, ओसामा, अबुर रहमान, मोहम्मद रहमान, मोहम्मद अली, जुनैद कुरैशी, मुस्तफा, मोहम्मद इब्राहिम, अब्दुल रहमान और उसके दो बेटे।
इनमें से 11 आरोपियों की जमानत याचिका पर सीजेएम कोर्ट में सुनवाई हुई, जिसमें अभियोजन पक्ष ने याचिकाओं के सत्यापन की मांग की है।
प्रयागराज में एसटीएफ से मुठभेड़ में शातिर अपराधी ढेर,एके-47 राइफल व 9 एमएम पिस्टल बरामद

लखनऊ/प्रयागराज । उत्तर प्रदेश के प्रयागराज जनपद में स्थित शंकरगढ़ थाना क्षेत्र में शिवराजपुर चौराहे के समीप गुरूवार भोर में एसटीएफ की प्रयागराज फील्ड इकाई की टीम से हुई मुठभेड़ में चार लाख का इनामी अपराधी गोली लगने से घायल हो गया। हालांकि उसकी उपचार के दौरान अस्पताल में मौत हो गई। पुलिस टीम ने उसके कब्जे से एके-47 राइफल व 9 एमएम पिस्टल, कारतूस का खोखा एवं एक मोटर साइकिल बरामद किया है। इस मुठभेड़ की पुष्टि पुलिस उपायुक्त यमुनापार विवेक चन्द्र यादव ने की है।

शातिर अपराधी की पहचान झारखंड के छोटू सिंह के रूप में हुई

उन्होंने बताया कि इस संबंध में पूरी जानकारी एसटीएफ से मिलेगी। मुठभेड़ में पुलिस की गोली से मारने वाले शातिर अपराधी की पहचान झारखंड के धनबाद जेसी मल्लिकरोड निवासी आशीष रंजन उर्फ छोटू सिंह के रूप में की गई है।

किसी बड़ी वारदात को देने जा रहा था अंजाम

एसटीएफ सूत्रों की माने तो एसटीएफ प्रयागराज की फील्ड इकाई की टीम प्रभारी जय प्रकाश जाय व उनकी टीम को सूचना मिली थी कि कई हत्याओं में वांछित माफिया अपने साथी के साथ प्रयागराज के शंकरगढ़ थाना क्षेत्र के शिवराजपुर रास्ते से आने वाला है और वह किसी बड़ी वारदात को अंजाम देने वाला है।

टीम पर एके-47 और पिस्टल से फायर कर दिया

इस सूचना पर प्रयागराज टीम ने घेराबंदी कर शिवराजपुर चौराहा थाना शंकरगढ़ के नजदीक घेराबंदी कर पकड़ने का प्रयास किया लेकिन उसने टीम पर एके-47 और पिस्टल से फायर कर दिया। इस दौरान एसटीएफ के प्रभारी निरीक्षक जय प्रकाश राय व उनके टीम के तीन कर्मचारी बाल—बाल बच गए। पुलिस टीम द्वारा आत्मरक्षार्थ की गई फायरिंग में वह घायल हो गया।

उपचार के दौरान घायल बदमाश की हो गई मौत

पुलिस टीम ने उसकी जान बचाने के प्रयास में नजदीकी अस्पताल में भर्ती कराया। जहां उसकी उपचार के दौरान मौत हो गई। पुलिस टीम ने घटनास्थल से एके-47 राइफल व 9 एमएम पिस्टल व भारी मात्रा में जिंदा हुआ खोखा कारतूस तथा एक मोटर साइकिल बरामद की है।
सीतापुर हत्याकांड का बदला: पत्रकार की हत्या करने वाले दो शूटरों को पुलिस ने किया ढेर

लखनऊ /सीतापुर। पत्रकार राघवेंद्र बाजपेयी हत्याकांड में लंबे समय से फरार चल रहे दो इनामी शूटरों को आखिरकार पुलिस ने मुठभेड़ में मार गिराया है। एक-एक लाख रुपये के इनामी बदमाश संजय तिवारी उर्फ अकील खान और राजू तिवारी उर्फ रिजवान की गुरुवार सुबह पिसावां इलाके में एसटीएफ और पुलिस की संयुक्त कार्रवाई के दौरान मौत हो गई।

जवाबी कार्रवाई में दोनों को गोली लगी

दोनों अपराधी बाइक से भागने की कोशिश कर रहे थे, जब उन्हें रुकने का इशारा किया गया तो उन्होंने पुलिस पर फायरिंग शुरू कर दी। जवाबी कार्रवाई में दोनों को गोली लगी। गंभीर रूप से घायल दोनों को जिला अस्पताल लाया गया, जहां डॉक्टरों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया।

आठ मार्च पत्रकार राघवेंद्र बाजपेयी की गोली मारकर की थी हत्या

पुलिस अधीक्षक अंकुर अग्रवाल के अनुसार, पिसावां-महोली मार्ग पर चल रही तलाशी के दौरान यह मुठभेड़ हुई। दोनों बदमाश अटवा (मिश्रित) के रहने वाले थे और उन पर हत्या, हत्या के प्रयास सहित कई गंभीर आपराधिक मुकदमे दर्ज थे।गौरतलब है कि इसी वर्ष 8 मार्च को दोपहर तीन बजे, महोली क्षेत्र में स्थित हेमपुर ओवरब्रिज पर पत्रकार राघवेंद्र बाजपेयी की गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। प्रारंभिक जांच में यह मामला सुनियोजित साजिश का हिस्सा निकला।

राघवेंद्र बाजपेयी की पत्नी ने अपनी नाराजगी जाहिर की

34 दिन बाद पुलिस ने इस हत्याकांड का खुलासा करते हुए एक मंदिर के पुजारी समेत तीन लोगों को गिरफ्तार किया था।पुलिस के अनुसार, हत्या में कुल पांच आरोपी शामिल थे, जिनमें से ये दोनों शूटर फरार चल रहे थे। उनकी तलाश में एसटीएफ की सात टीमों और क्राइम ब्रांच की तीन टीमों को लगाया गया था।हालांकि, इस मुठभेड़ के बाद भी राघवेंद्र बाजपेयी की पत्नी ने अपनी नाराजगी जाहिर की है। उनका कहना है कि यह कार्रवाई पर्याप्त नहीं है और उन्हें अब भी न्याय की पूरी उम्मीद है।
दिव्यांगजनों के भरण-पोषण भत्ते में 100 प्रतिशत की वृद्धि


- विशेष विद्यालयों के आवासीय दिव्यांग छात्रों को अब मिलेंगे प्रतिमाह 4000 रुपये

लखनऊ। प्रदेश सरकार ने दिव्यांगजनों की सुविधाओं में वृद्धि करते हुए एक बड़ा निर्णय लिया है। दिव्यांगजन सशक्तीकरण विभाग द्वारा संचालित विशेष विद्यालयों/संस्थाओं में निवासरत दिव्यांग संवासियों के भरण-पोषण भत्ते की राशि को 2000 रुपये  प्रतिमाह से बढ़ाकर 4000 रुपये प्रतिमाह कर दिया गया है। यह निर्णय बुधवार से प्रभावी हो गया है।
प्रदेश के पिछड़ा वर्ग कल्याण एवं दिव्यांगजन सशक्तीकरण राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार)  नरेंद्र कश्यप ने कहा कि दिव्यांगजनों के सामाजिक सशक्तीकरण के लिए निरंतर सकारात्मक कदम उठाए जा रहे हैं। भरण-पोषण भत्ते में की गई यह बढ़ोतरी दिव्यांग बच्चों और उनके अभिभावकों के लिए बड़ी राहत है। यह केवल आर्थिक सहयोग नहीं बल्कि सरकार की संवेदनशील सोच का प्रमाण भी है।
प्रमुख सचिव सुभाष चंद्र शर्मा द्वारा जारी शासनादेश  के अनुसार, पूर्व में  25 अप्रैल 2016 को जारी शासनादेश को संशोधित करते हुए यह निर्णय लिया गया है। इस निर्णय की सूचना प्रदेश के सभी मंडलायुक्तों, जिलाधिकारियों, मंडलीय उपनिदेशकों, जिला दिव्यांगजन सशक्तीकरण अधिकारियों, विभागीय प्रशिक्षण केंद्रों व आश्रयगृहों के अधीक्षकों तथा राजकीय विशेष विद्यालयों के प्रधानाचार्यों को दे दी गई है ताकि लाभार्थियों को समय पर इसका लाभ मिल सके।
रक्षाबंधन और जन्माष्टमी से पहले निराश्रित महिलाओं को योगी सरकार का तोहफा
* दूसरी तिमाही की ₹1115.64 करोड़ की पेंशन राशि 36.75 लाख महिलाओं को समय से पहले हस्तांतरित

लखनऊ। रक्षाबंधन और श्रीकृष्ण जन्माष्टमी से पहले उत्तर प्रदेश की योगी सरकार ने प्रदेश की निराश्रित महिलाओं को बड़ा तोहफा दिया है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देश पर महिला कल्याण विभाग ने वित्तीय वर्ष 2025-26 की दूसरी तिमाही (जुलाई-सितंबर) की ₹1115.64 करोड़ की पेंशन राशि 36,75,623 लाभार्थी महिलाओं के आधार-लिंक्ड खातों में अगस्त के पहले सप्ताह में ही ट्रांसफर कर दी है। यह कदम त्योहारों को आर्थिक चिंता से मुक्त और उल्लासपूर्ण बनाने की दिशा में उठाया गया है।
उत्तर प्रदेश में संचालित पति की मृत्यु उपरांत निराश्रित महिला पेंशन योजना महिलाओं को आर्थिक और सामाजिक रूप से सशक्त बनाने का महत्वपूर्ण माध्यम है। इसके अंतर्गत 18 वर्ष से अधिक उम्र की, पति से विहीन, ₹2 लाख सालाना आय सीमा वाली महिलाएं प्रतिमाह ₹1000 की सहायता पाती हैं। यह पेंशन राशि सीधे पीएफएमएस (पब्लिक फाइनेंशियल मैनेजमेंट सिस्टम) के जरिए बैंक खातों में भेजी जाती है, जिससे पारदर्शिता और समयबद्धता सुनिश्चित होती है। इससे पहले, वित्तीय वर्ष 2025-26 की पहली तिमाही (अप्रैल-जून) में 35.78 लाख महिलाओं को ₹1062.15 करोड़ की राशि दी गई थी। अब दूसरी तिमाही में लाभार्थियों की संख्या और राशि, दोनों में वृद्धि दर्ज की गई है।
महिला कल्याण विभाग के निदेशक ने बताया कि इच्छुक महिलाएं sspy-up.gov.in पोर्टल पर जाकर आसानी से ऑनलाइन आवेदन कर सकती हैं। सरकार का उद्देश्य है कि कोई भी पात्र महिला इस लाभ से वंचित न रहे और जांच प्रक्रिया को त्वरित व निष्पक्ष बनाया जाए, ताकि अधिक से अधिक जरूरतमंदों को सहायता मिल सके।
किसानों को समय पर मिले खाद-बीज: सूर्य प्रताप शाही
- कृषि मंत्री ने की विभागीय समीक्षा बैठक, अधिकारियों को बजट व्यय में तेजी लाने के दिये निर्देश

लखनऊ। किसानों के हित में स्वीकृत बजट को समय पर किसानों के हित में खर्च कर लिया जाना और बीज तथा संबंधित कृषि यंत्र भी किसानों को समय से मिल सकें यह विभाग के योजनाधिकारियों का मुख्य दायित्व है, इसमें किसी प्रकार की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जायेगी। यह बात बुधवार को प्रदेश के कृषि मंत्री सूर्य प्रताप शाही द्वारा कृषि भवन के सभागार में आयोजित विभागीय योजनाओं की समीक्षा बैठक के दौरान अधिकारियों से कही गई।
कृषि मंत्री ने उर्वरक की आपूर्ति, भण्डारण तथा वितरण की समीक्षा करते हुए कहा कि प्रत्येक खाद विक्रय केन्द्र स्तर पर इसकी निरन्तर गहन निगरानी आवश्यक है। उन्होंने कहा कि स्थानीय अधिकारी यह सुनिश्चित करें कि किसानों को खतौनी में उनके नाम दर्ज भूमि के सापेक्ष ही उर्वरक दिया जाय, जिससे जमाखोरी व कालाबाजारी पर लगाम लगायी जा सके। विभाग द्वारा खाद की निरन्तर आपूर्ति किये जाने के कारण ही वर्तमान अवधि में गत वर्ष के सापेक्ष इस वर्ष 484035 मी. टन खाद की अधिक बिक्री की गई है। गत वर्ष यह बिक्री 2157439 थी, जबकि इस वर्ष 2641474 है। उन्होंने किसानों से भी अपील की कि वे रासायनिक उर्वरकों का उतना ही प्रयोग करें, जिससे मिट्टी की उर्वरता तथा उसका स्वास्थ्य भी बचाया जा सके।
इस वित्तीय वर्ष के बजट की समीक्षा करते हुए उन्होंने कहा कि व्यय में और गति लाने की आवश्यकता है। उन्होंने कहा कि अभी तक लगभग 20 प्रतिशत बजट खर्च किया गया है। जिन योजनाधिकारियों द्वारा बजट व्यय करने में अच्छा प्रदर्शन नहीं किया गया है उन अधिकारियों को अपने कार्य में गति लाने के लिए सख्त हिदायत दी गई। उन्होंने अधिकारियों की कार्यक्षमता को बढ़ाने के लिए ब्रेन स्टॉर्मिंग कार्यशाला आयोजित करने के भी निर्देश दिए।
बैठक के दौरान प्रमुख सचिव कृषि रवीन्द्र, सचिव कृषि इन्द्र विक्रम सिंह, विशेष सचिव टी.के. शिबू तथा ओ.पी. वर्मा, निदेशक कृषि डॉ. पंकज कुमार त्रिपाठी एवं निदेशक सांख्यकीय श्रीमती सुमिता सिंह सहित अन्य विभागीय वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।
रामनगरी में समृद्धि की गूंज, विभिन्न परियोजनाओं के लिए 225 लाख रुपए की मंजूरी : जयवीर सिंह
राम मंदिर निर्माण के बाद श्रद्धालुओं की बेतहाशा बढ़ोतरी, 2025 में 50 करोड़ आगंतुकों का अनुमान

लखनऊ। प्रभु श्रीराम की पावन नगरी अयोध्या में विकास की गति तेज हो गई है। राम मंदिर निर्माण के साथ-साथ नगर के समग्र धार्मिक, सांस्कृतिक और पर्यटन विकास को केंद्र में रखते हुए एक के बाद एक योजनाएं धरातल पर उतर रही हैं। उत्तर प्रदेश पर्यटन विभाग ने हाल ही में अयोध्या के लिए ₹225 लाख की विभिन्न परियोजनाओं को मंजूरी दी है। इन योजनाओं का उद्देश्य अयोध्या को एक विश्वस्तरीय धार्मिक और सांस्कृतिक पर्यटन केंद्र के रूप में विकसित करना है।
यह जानकारी प्रदेश के पर्यटन एवं संस्कृति मंत्री जयवीर सिंह ने दी। उन्होंने कहा कि राम मंदिर के उद्घाटन के बाद अयोध्या न केवल देशवासियों बल्कि विदेशियों के लिए भी आस्था का प्रमुख केंद्र बन चुकी है। लगातार बढ़ रहे श्रद्धालुओं के आगमन से स्थानीय अर्थव्यवस्था, रोजगार और बुनियादी ढांचे में उल्लेखनीय सुधार दर्ज किया गया है।

* तीव्र गति से बढ़ रहा आगंतुकों का आंकड़ा :
मंत्री जयवीर सिंह ने बताया कि वर्ष 2025 की पहली तिमाही (जनवरी से मार्च) में ही अयोध्या में रिकॉर्ड 20.36 करोड़ श्रद्धालुओं ने दर्शन किए। महाकुंभ-2025 की तैयारियों और राम मंदिर दर्शन की ललक के चलते इस अप्रत्याशित वृद्धि को देखा गया। अनुमान है कि वर्ष के अंत तक यह आंकड़ा 45 से 50 करोड़ तक पहुंच सकता है। साल-दर-साल आंकड़ों पर नजर डालें तो 2023 में 5.76 करोड़ पर्यटक अयोध्या आए थे, जबकि 2024 में यह संख्या तीन गुना बढ़कर 16.44 करोड़ हो गई। यह वृद्धि अयोध्या की धार्मिक महत्ता के साथ-साथ सरकार की विकास नीतियों की सफलता को भी दर्शाती है।

* रामनगरी में बहुआयामी विकास योजनाएं :
पर्यटन मंत्री ने बताया कि योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के मार्गदर्शन में अयोध्या में विकास, पर्यटन, सौंदर्यीकरण और रोजगार सृजन से जुड़ी योजनाओं को तेज़ी से लागू किया जा रहा है। न केवल मंदिर के आसपास का क्षेत्र, बल्कि पूरे शहर को अंतरराष्ट्रीय स्तर के पर्यटन गंतव्य के रूप में विकसित करने की दिशा में काम हो रहा है। जयवीर सिंह ने कहा कि अयोध्या अब केवल श्रद्धा का केंद्र नहीं रह गया, बल्कि यह सांस्कृतिक विरासत, आध्यात्मिक अनुभव और आर्थिक समृद्धि का प्रतीक बनता जा रहा है।