सीरिया में बशर अल-असद की सत्ता जाने के बाद अमेरिका का बड़ा बयान, कहा 'सीधे संपर्क में हैं विद्रोही'
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डेस्क: अमेरिका के विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन ने कहा है कि अमेरिकी अधिकारी सीरियाई विद्रोही समूह के साथ सीधे संपर्क में हैं। सीरिया में पिछले दिनों विद्रोही समूह ने राष्ट्रपति बशर अल-असद की सरकार को अपदस्थ कर दिया था। हालांकि, अमेरिका और अन्य देशों ने विद्रोही समूह को आतंकवादी संगठन घोषित कर रखा है। ब्लिंकन पहले ऐसे अमेरिकी नेता हैं जिन्होंने जो बाइडेन प्रशासन और विद्रोही समूह हयात तहरीर अल-शाम (एचटीएस) के बीच संपर्क की सार्वजनिक रूप से पुष्टि की है। एचटीएस ने विपक्षी समूहों के गठबंधन का नेतृत्व किया था जिसने हाल ही में असद को सत्ता से बेदखल कर दिया था। जॉर्डन के अकाबा में संवाददाता सम्मेलन में ब्लिंकन ने संपर्कों के विवरण पर चर्चा नहीं की, लेकिन कहा कि अमेरिका के लिए समूह को उसके आचरण और बदलाव के काल में शासन को लेकर संदेश देना जरूरी है। ब्लिंकन ने कहा, ‘‘हां, हम एचटीएस और अन्य पक्षों के संपर्क में हैं। सीरियाई लोगों के लिए हमारा संदेश यह है, हम चाहते हैं कि वो सफल हों और हम ऐसा करने में उनकी मदद करने के लिए तैयार हैं।’’ एक समय अल-कायदा से संबद्ध रहे एचटीएस को 2018 से अमेरिकी विदेश विभाग ने आतंकवादी संगठन घोषित कर रखा है। इसके तहत संगठन और उससे जुड़े लोगों पर कई प्रतिबंध हैं। हालाकि, प्रतिबंध के तहत कानूनी रूप से अमेरिकी अधिकारियों के निर्दिष्ट समूहों के साथ संवाद पर रोक नहीं है। एचटीएस ने दमिश्क पर कब्जा करने के बाद सीरिया में सुरक्षा स्थापित करने और सत्ता परिवर्तन शुरू करने के लिए काम किया है तथा जनता को आश्वस्त करने की कोशिश की है। विद्रोही नेताओं का कहना है कि समूह ने अपने अतीत को पीछे छोड़ दिया है और आतंक से नाता तोड़ लिया है।
जम्मू कश्मीर के रियासी में आतंकी ठिकाने का भंडाफोड़, अरनिया में पाकिस्तानी ड्रोन पकड़ाया

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डेस्क: सेना ने जम्मू कश्मीर में दो अलग-अलग जगह कार्रवाई करते हुए आतंकी ठिकाने और ड्रग रैकेट का भंडाफोड़ किया है। रियासी में जिस आतंकी ठिकाने का भंडाफोड़ हुआ है, वहां से बड़ी मात्रा में हथियार बरामद किए गए हैं। वहीं, सीमा के पास पकड़े गए पाकिस्तानी ड्रोन के साथ लगभग आधा किलो ड्रग्स बरामद हुए हैं।

जानकारी के अनुसार सेना ने बुधवार को जम्मू-कश्मीर के रियासी जिले में एक बड़े आतंकी ठिकाने का भंडाफोड़ किया और हथियारों और गोला-बारूद का बड़ा जखीरा बरामद किया। अधिकारियों ने बताया कि राष्ट्रीय राइफल्स के जवानों ने माहोर के वन क्षेत्र में घेराबंदी और तलाशी अभियान के दौरान ठिकाने का भंडाफोड़ किया।

अधिकारियों के अनुसार, ठिकाने से बरामद की गई चीजों में एक एके असॉल्ट राइफल, 400 से अधिक राउंड वाली इसकी तीन मैगजीन, दो पिस्तौल, 14 राउंड वाली दो मैगजीन और चार हथगोले शामिल हैं। उन्होंने बताया कि इलाके में तलाशी अभियान जारी है और विस्तृत जानकारी का इंतजार है।

सीमा सुरक्षा बल (बीएसएफ) ने यहां अंतरराष्ट्रीय सीमा के पास करीब आधा किलोग्राम उच्च श्रेणी का मादक पदार्थ ले जा रहे एक पाकिस्तानी ड्रोन को जब्त किया। अधिकारियों ने रविवार को यह जानकारी दी। अधिकारियों ने बताया कि ड्रोन सीमा पार से भारत में घुसा था और शनिवार देर रात अरनिया सेक्टर में चिनाज सीमा चौकी क्षेत्र से इसे जब्त किया गया। बरामदगी की पुष्टि करते हुए बीएसएफ के एक प्रवक्ता ने बताया कि जवानों ने शनिवार रात आठ बजकर 10 मिनट पर पाकिस्तानी ड्रोन को मार गिराया और मादक पदार्थ की तस्करी के प्रयास को नाकाम कर दिया।

अधिकारियों ने बताया कि ड्रोन से 495 ग्राम मादक पदार्थ भी जब्त किया गया। अधिकारी ने एक बयान में कहा, ‘‘बीएसएफ जम्मू के जवानों ने एक बार फिर राष्ट्र विरोधी तत्वों के नापाक मंसूबों को पानी फेर दिया जो राष्ट्र की सुरक्षा के प्रति उनकी अटूट प्रतिबद्धता को दर्शाता है।’’

वन नेशन वन इलेक्शन' बिल पर असमंजस! सोमवार को लोकसभा में नहीं पेश होगा विधेयक
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डेस्क: 'वन नेशन वन इलेक्शन' को लेकर असमंजस की स्थिति बन रही है। यह बिल पहले सोमवार 16 दिसंबर को लोकसभा में पेश होना था। बजाप्ता यह 16 तारीख में लिस्टेड भी था। लेकिन अब यह बिल सोमवार को लोकसभा में पेश नहीं होगा। क्योंकि लोकसभा की संशोधित सूची में यह बिल नहीं है। बता दें कि सरकार ने इस बिल की कॉपी सांसदों को भी भेज दी है ताकि वे इसका अध्ययन कर सकें। बता दें कि संसद का शीतकालीन सत्र 20 दिसंबर को खत्म हो रहा है।अगर यह बिल 16 दिसंबर को पेश नहीं होता है तो फिर सरकार के पास चार दिन ही बाकी रहेंगे। ऐसे में इस बिल पर चर्चा होने के आसार कम ही नजर आ रहे हैं। बता दें कि पीएम मोदी की अध्यक्षता में केंद्रीय मंत्रिमंडल ने लोकसभा तथा राज्य विधानसभाओं के चुनाव एक साथ कराने के लिए संवैधानिक संशोधन विधेयक वन नेशन वन इलेक्शन को 12 दिसंबर को मंजूरी दी थी। कैबिनेट ने दो ड्राफ्ट कानूनों को मंजूरी दी थी, जिसमें से एक संविधान संशोधन विधेयक लोकसभा एवं राज्य विधानसभाओं के चुनाव एक साथ कराने से संबंधित है, जबकि दूसरा विधेयक विधानसभाओं वाले तीन केंद्र शासित प्रदेशों के एक साथ चुनाव से जुड़ा है। एक संविधान संशोधन विधेयक लोकसभा एवं राज्य विधानसभाओं के चुनाव एक साथ कराने से संबंधित है, जबकि दूसरा विधेयक विधानसभाओं वाले तीन केंद्र शासित प्रदेशों के एक साथ चुनाव से जुड़ा है। संविधान संशोधन विधेयक को पारित कराने के लिए दो तिहाई बहुमत, जबकि दूसरे विधेयक के लिए सदन में सामान्य बहुमत की आवश्यकता होगी। भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने 2024 के लोकसभा चुनाव के लिए अपने घोषणापत्र में इस विचार के प्रति अपनी प्रतिबद्धता जताई थी।
पड़ने वाली है कड़ाके की ठंड, पहाड़ों में बर्फबारी से दिल्ली-NCR में गिरेगा तापमान, इन राज्यों के लिए शीत लहर का अलर्ट
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पहाड़ी राज्यों में बर्फबारी का दौर शुरू हो गया है। हिमाचल प्रदेश, जम्मू-कश्मीर और उत्तराखंड के ऊंचाई वाले क्षेत्रों में बर्फबारी हो रही है। उत्तराखंड के केदार घाटी और बद्रीनाथ क्षेत्र में भी अच्छी खासी बर्फबारी हुई है। नैनीताल समेत कुमाऊं क्षेत्र के कुछ इलाकों में भी हल्की बर्फबारी हुई है। पहाड़ों में हो रही बर्फबारी का असर अब मैदानी इलाकों में दिख रहा है। पहाड़ों में बर्फबारी के चलते राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली और एनसीआर में अभी और कड़ाके की ठंड पड़ने की संभावना है। आईएमडी ने कहा कि अगले दो-तीन दिनों तक दिल्ली-एनसीआर में शीतलहर जारी रहेगी। इससे तापमान में गिरावट आएगी और कड़ाके की ठंड पड़ेगी। आईएमडी के अनुसार, रविवार (15 दिसंबर) को न्यूनतम तापमान 5 डिग्री सेल्सियस के आसपास रहने की उम्मीद है। अधिकतम तापमान 21 डिग्री सेल्सियस तक रह सकता है। दिन में आसमान साफ रहेगा। तेज धूप के साथ ठंडी हवाएं चलेंगी। मौसम विभाग के अनुसार, सोमवार को दिल्ली में न्यूनतम तापमान 6 डिग्री सेल्सियस और अधिकतम तापमान 21 डिग्री सेल्सियस रहने की संभावना जताई गई है। सोमवार को भी दिल्ली-एनसीआर में मौसम साफ रहेगा। दिन में तेज धूप के साथ शीत लहर चलेगी। भारतीय मौसम विज्ञान विभाग (IMD) ने अगले सप्ताह के लिए देश के कई हिस्सों में शीत लहर का पूर्वानुमान जताया है। आईएमडी ने बताया कि आने वाले कुछ दिनों में राजस्थान, पूर्वी उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश, हरियाणा और पंजाब में 19 दिसंबर से 25 दिसंबर तक शीत लहर चलने की संभावना है। आईएमडी के अनुसार, राजस्थान के अलग-अलग स्थानों पर न्यूनतम तापमान 5 डिग्री सेल्सियस या उससे भी कम हो सकता है। पूर्वी उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश के कुछ स्थानों पर न्यूनतम तापमान सामान्य से 7 से 5 डिग्री सेल्सियस तक जा सकता है। मौसम विभाग ने बताया कि दिसंबर के 19-25वें सप्ताह के दौरान पूर्वानुमानित न्यूनतम तापमान में कोई बदलाव नहीं देखा जाएगा। हालांकि, आईएमडी ने अपने नवीनतम बुलेटिन में बताया कि उत्तर-पश्चिम, मध्य और पूर्वी भारत के अधिकांश हिस्सों में न्यूनतम तापमान 10 डिग्री सेल्सियस से नीचे रहने की उम्मीद है।
अतुल सुभाष सुसाइड केस में बड़ी कार्रवाई, पत्नी निकिता, भाई और मां निशा सिंघानिया तीनों गिरफ्तार
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डेस्क: अतुल सुभाष सुसाइड केस में पुलिस ने बड़ी कार्रवाई की है। मृतक अतुल सुभाष की पत्नी निकिता सिंघानिया उनकी मां निशा सिंघानिया और भाई अनुराग सिंघानिया को बेंगलुरु पुलिस ने अरेस्ट कर लिया है। निकिता को गुरुग्राम से और मां और भाई को इलाहाबाद से अरेस्ट किया गया है। इसके बाद दोनों को बेंगलुरु लाकर कोर्ट के सामने पेश किया गया, कोर्ट ने उन्हें ज्यूडिशियल कस्टडी में भेज दिया गया है। बेंगलुरु पुलिस ने 13 दिसंबर को अतुल सुभाष की पत्नी निकिता सिंघानिया के जौनपुर स्थित आवास के बाहर एक नोटिस चिपकाया था। बेंगलुरु पुलिस ने आरोपियों का पता लगाने के लिए उत्तर प्रदेश पुलिस से मदद मांगने का फैसला किया, इसके बाद ये गिरफ्तारियां हुईं हैं। तीनों आरोपियों पर अतुल के खिलाफ मामला वापस लेने के लिए 3 करोड़ रुपये और उसके बेटे से मिलने के अधिकार के लिए 30 लाख रुपये मांगने का आरोप है। बेंगलुरु में AI इंजीनियर अतुल सुभाष ने सोमवार को अपने बेंगलुरु अपार्टमेंट में आत्महत्या कर ली थी। उन्होंने 24 पन्नों का सुसाइड नोट छोड़ा था। 34 वर्षीय AI इंजीनियर ने आत्महत्या करने से पहले रंबल पर 90 मिनट का एक वीडियो भी छोड़ा था। ससुरालवालों और जज पर लगाए थे गंभीर आरोप अतुल ने अपने सुसाइड नोट में अपनी पत्नी और उसके रिश्तेदारों पर उत्पीड़न का आरोप लगाया है। मृतक अतुल सुभाष ने यह भी आरोप लगाया कि एक जज ने मामले को निपटाने के लिए 5 लाख रुपए की मांग की थी। आत्महत्या के बाद से ससुराल वाले हो गए थे फरार अतुल सुभाष की आत्महत्या के बाद से उसके ससुराल वाले फरार हो गए थे। जौनपुर स्थित अपने घर को छोड़कर चले गए थे। पुलिस उनकी गिरफ्तारी के लिए लगी हुई थी। अब जाकर तीनों आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया गया है।
संविधान या मनुस्मृति, राहुल गांधी ने सरकार से पूछा- आप किसे मानते हैं?
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#rahul_gandhi_speech_in_lok_sabha
* लोकसभा में संविधान पर चर्चा चल रही है। लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी संविधा दिवस पर चल रही चर्चा में भाग लेते हुए अपनी बात रखी। राहुल गांधी ने कहा कि संविधान हमारी आवाज है। हमारा संविधान जीवन का दर्शन है। संविधान नए भारत का दस्तावेज है। जब हम संविधान को देखते हैं तो हम देख सकते हैं कि संविधान में महात्मा गांधी, डॉ. आंबेडकर, पंडित नेहरू के विचार दिखते हैं, लेकिन ये विचार कहां से आए। ये विचार भगवान शिव, गुरु नानक, भगवान बासवन्ना, कबीर आदि से आए। हमारा संविधान बिना हमारी प्राचीन विरासत के बिना नहीं बन सकता था। *वीर सावरकर का नाम कर बीजेपी को घेरा* संविधान पर राहुल गांधी ने बोलते हुए एक बार फिर वीर सावरकर पर निशाना साधा। राहुल गांधी ने सदन में मनु स्मृति की प्रतियों को दिखाते हुए सरकार पर हमला बोला। राहुल ने कहा कि मैं अपने भाषण की शुरुआत न सिर्फ बीजेपी बल्कि आरएसएस के आधुनिक विचारों की व्याख्या करने वाले उनके सबसे बड़े नेता ने भारत के संविधान को लेकर क्या कहा था और भारत को कैसे चलना चाहिए, उसके बारे में वह क्या सोचते हैं, उनके कोट से करूंगा। उन्होंने कहा था कि संविधान के बारे में सबसे खराब बात ये है कि इसमें कुछ भी भारतीय नहीं है। मनुस्मृति एक ऐसा धर्मग्रंथ है जो वेद, पुराण के बाद सबसे ज्यादा पूजनीय है, ये प्राचीन काल से हमारी संस्कृति, हमारे विचार, परंपराओं का आधार रही है। ये किताब सदियों से हमारे देश की अध्यात्मिक और दैवीय यात्रा को परिलक्षित करती रही है। ये शब्द हैं सावरकर के। सावरकर अपनी लेखनी में साफ-साफ कह रहे हैं कि हमारे संविधान में कुछ भी भारतीय नहीं है। वह कह रहे हैं कि भारत को संविधान नहीं, बल्कि मनुस्मृति से चलना चाहिए। आप संविधान की बात कर रहे हैं तो बताइए क्या आप अपने नेता की बात से सहमत हैं? *राहुल गांधी ने किया एकलव्य का जिक्र* राहुल गांधी ने अपने भाषण में द्रोणाचार्य और एकलव्य का जिक्र किया। राहुल गांधी ने कहा कि जैसे पहले हिंदुस्तान चलाया जाता था, वैसे ही आप आज भी चलाना चाहते हैं। पहले जब मैं जब छोटा था, तब दिल्ली के आसपास, एम्स के पास ही जंगल था। वैसे ही जंगल में हजारों साल पहले एक बच्चा सुबह उठकर तपस्या करता था। हर रोज सुबह वो धनुष उठाकर तीर कमान चलाता था और घंटे उसने तपस्या की और वर्षों तक तपस्या की। उसका नाम एकलव्य था। जब वह द्रोणाचार्य के पास पहुंचा तो गुरु द्रोणाचार्य ने उसे सिखाने से मना कर दिया कि आप स्वर्ण जाति से नहीं है तो मैं आपको नहीं सिखा सकता। *आप हिंदुस्तान के युवाओं का अंगूठा काट रहे-राहुल गांधी* राहुल गांधी ने कहा कि जैसे द्रोणाचार्य ने एकलव्य का अंगूठा काटा, वैसे ही आप हिंदुस्तान के युवाओं का अंगूठा काट रहे हैं। राहुल गांधी ने कहा कि जब आप अडानी को धारावी का बिजनेस देते हैं तो आप धारावी के छोटे व्यापारियों का अंगूठा काटते हैं। जब आप बंदरगाह, एयरपोर्ट अडानी को देते हैं तो जो लोग ईमानदारी से व्यापार करते हैं आप उनका अंगूठा काटते हैं। लेटेरल एंट्री देकर देश के युवाओं का अंगूठा काटते हैं। देश के युवा प्रतिस्पर्धी परीक्षा की तैयारी करते हैं। तो पेपर लीक कराकर आप उनका अंगूठा काटते हैं। देश के हजारों युवा सेना में जाने के लिए मेहनत करते थे, तो आपने अग्निवीर लाकर उनका अंगूठा काटा। किसान आपसे एमएसपी मांगते हैं, मगर आप अदाणी-अंबानी को फायदा पहुंचाते हो तो आप किसानों का अंगूठा काटने का काम करते हैं। संविधान में कहीं नहीं लिखा कि एकाधिकार होना चाहिए, अग्निवीर होना चाहिए। संविधान में ये नहीं लिखा कि देश के युवाओं का अंगूठा काटना चाहिए। *बीजेपी के लोग संविधान पर हमला करते हैं- राहुल गांधी* अपने भाषण में राहुल गांधी ने हाथरस का मुद्दा उठाया। उन्होंने आरोपी बाहर घूम रहे हैं और पीड़ित परिवार घर में बंद हैं। पीड़ित परिवार को बेटी का अंतिम संस्कार करने नहीं दिया। मैं हाथरस के पीड़ित परिवार से मिला। सीएम ने हाथरस की घटना पर झूठ बोला। आरोपी पीड़ित परिवार को धमकाते हैं। क्या यूपी में संविधान नहीं, मनुस्मृति लागू है? राहुल ने कहा बीजेपी के लोग संविधान पर हमला करते हैं। उन्होंने संभल का भी मुद्दा भी उठाया। राहुल ने कहा कि संभल में पांच लोगों की हत्या कर दी गई। ये कहां लिखा है संविधान में। बीजेपी के लोग एक धर्म को दूसरे धर्म से लड़ाते हैं। ये कहां लिखा है संविधान में। हमारी और इंडिया गठबंधन की विचारधारा देश में संविधान स्थापित करने की है।
किरेन रिजिजू का कांग्रेस पर बड़ा आरोप, बोले-पार्टी ने षड्यंत्र करके भीमराव अंबेडकर को लोकसभा चुनाव में हराया
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#kiren_rijiju_targeted_congress_regarding_babasaheb_bhimrao_ambedkar
* केंद्रीय मंत्री किरन रिजिजू ने आज लोकसभा में भीमराव आंबेडकर का जिक्र कर कांग्रेस पर निशाना साधा। किरेन रिजिजू ने आरोप लगाया कि कांग्रेस पार्टी ने षड्यंत्र करके भीमराव अंबेडकर को लोकसभा चुनाव में हराया था। इसके लिए कांग्रेस को पूरे देश से माफी मांगनी चाहिए। इस दौरान उन्होंने कांग्रेस की मंशा पर सवाल उठाते हुए कहा कि 1990 तक बाबा साहेब अंबेडकर को भारत रत्न क्यों नहीं दिया गया? वहीं, नेहरू जी और इंदिरा गांधी ने खुद को भारत रत्न दिया था। लोकसभा में संविधान पर चर्चा के दूसरे दिन संसदीय कार्य मंत्री किरेन रिजिजू ने बाबा साहेब आंबेडकर के पत्र का जिक्र करते कई बातें बताईं। रिजिजू ने कहा कि कानून मंत्री के पद पर जाने से पहले मेरे मन में सुबह यही आया कि पहले कानून मंत्री बाबा साहेब ने आखिर इस्तीफा क्यों दिया? उन्हें आर्किटेक्ट ऑफ कॉन्स्टिट्यूशन कहा जाता था। उन्होंने कहा कि मैंने ढूंढ करके उस पत्र को पढ़ा है। बाबा साहेब आंबेडकर ने नेहरू जी को लिखा था। लंबा पत्र है, उसके कुछ हिस्से का जिक्र करूंगा। रिजिजू ने लोकसभा में बताया कि बाबा साहेब आंबेडकर ने कानून मंत्री के पद से जो इस्तीफा दिया उसमें शुरू में ही मेंशन किया कि अक्सर जब मंत्री कैबिनेट से इस्तीफा देते हैं तो कारण बताना चाहिए। मैं बिना कारण बताए भी इस्तीफा दे सकता था लेकिन मुझे लगता है कि इस्तीफे में ही मुझे कारण बताना चाहिए। उन्होंने पत्र में अच्छे से जिक्र किया। पहले कैबिनेट में सभी पार्टियों के लोग थे। पहली लिस्ट में बाबा साहेब का नाम नहीं था। बाद में जोड़ा गया और कानून मंत्री बना गया। किरन रिजिजू ने आगे कहा कि श्यामा प्रसाद मुखर्जी भी कैबिनेट में थे। जब भीम राव आंबेडकर को लॉ मिनिस्ट्री दिया गया तो उन्होंने पंडित नेहरू से कहा कि आपने मुझे मंत्री बनाया तो बहुत अच्छा है। जब देशभर में आजादी मिल गई है,संविधान बन गया है तो देश को आगे ले जाना है। उन्होंने कहा कि प्राथमिकता क्या है। बाबा साहेब जितना पढ़ा लिखा कोई नहीं हुआ। उन्होंने कहा कि मेरी पहली प्राथमिकता इकोनॉमी है। मुझे लॉ के अलावा वित्त मंत्रालय दे दीजिए। न हो तो कैबिनेट कमिटी में ही जगह दे दीजिए,लेकिन किसी भी कैबिनेट कमिटी में उन्हें मेंबर नहीं रखा गया। बाबा साहेब को लगने लगा कि मुझे तो प्रॉसेस में भी इन्वॉल्व नहीं कर रहे। प्लानिंग पोर्टफोलियों का वादा किया था नेहरू जी ने,लेकिन वह भी नहीं दिया। इसलिए बाबा साहेब ने इस्तीफा दे । उन्होंने पत्र में क्या लिखा,उसे सबको पढ़ना चाहिए। आगे किरन रिजिजू ने 1990 तक बाबा साहेब अंबेडकर को भारत रत्न नहीं देने पर भी सवाल उठाया। किरन रिजिजू ने कांग्रेस पर हमला करते हुए कहा कि साल 1956 से 1990 तक आपने बाबा साहेब को भारत रत्न क्यों नहीं दिया? नेहरू और इंदिरा गांधी ने खुद को भारत रत्न दिया। आप कारण बताइए आपके शासन काल में बाबा साहेब आंबडेकर को भारत रत्न से क्यों नहीं नवाजा गया? सबसे पहले भारत रत्न अगर किसी को देना चाहिए तो बाबा साहेब को देना चाहिए था। रिजिजू ने कहा कि जब भारतीय जनता पार्टी के समर्थन से बीपी सिंह की सरकार बनी तब अंबेडकर जी को भारत रत्न दिया गया था. हमारा मानना है कि अगर देश में किसी को पहला भारत रत्न मिलना था तो अंबेडकर जी को मिलना चाहिए था। उन्होंने आगे कहा कि अंबेडकर जी के जन्म स्थल को तीर्थ स्थल के तौर पर विकसित किया गया है। लंदन में जहां अंबेडकर जी ने पढ़ाई की थी, उस घर को मोदी जी के नेतृत्व में महाराष्ट्र सरकार ने खरीद कर अंबेडकर म्यूजियम बनाया है। दिल्ली में बाबा साहब इंटरनेशनल मेमोरियल सेंटर बनाया गया है।
रिजिजू ने बिना नाम लिए राहुल गांधी को जमकर सुनाई खरी-खरी, जानें भारत में अल्पसंख्यकों की सुरक्षा पर क्या कहा?

#kirenrijijuattackedrahulgandhibymentioningofminorities

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लोकसभा में संविधान पर चर्चा का आज दूसरा दिन है। संविधान पर चर्चा के दौरान संसदीय कार्य मंत्री किरेन रिजिजू ने कांग्रेस पर निशाना साधा है। रिजिजू ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सरकार द्वारा अपनाए गए सिद्धांतों पर गर्व व्यक्त किया और संविधान की भावना के साथ इसके संरेखण पर जोर दिया। अपने संबोधन में रिजिजू ने कहा, मुझे गर्व है कि जब प्रधानमंत्री मोदी का कार्यकाल शुरू हुआ, तो उन्होंने संविधान की उसी भावना का पालन करते हुए अपनी सरकार का मंत्र इस देश के सामने रखा. और वह मंत्र है सबका साथ, सबका विकास, सबका विश्वास और सबका प्रयास।

यूरोपियन यूनियन में 38 फीसदी लोग भेदभाव का शिकार हुए-रिजिजू

संविधान पर चर्चा के दौरान केंद्रीय संसदीय कार्य मंत्री किरेन रिजिजू ने राहुल गांधी का नाम लिए बगैर उनपर हमला बोला। किरेन रिजिजू ने संविधान पर चर्चा के दौरान कहा, 'एक सर्वे है, ग्लोबल सर्वे है। हम सबने पढ़ा है। सेंटर फॉर पॉलिसी ऐनालिसिस इन यूरोपियन यूनियन के सर्वे के मुताबिक ईयू में 38 प्रतिशत लोग भेदभाव का शिकार हैं, जिसमें ज्यादातर मुस्लिम हैं। फ्रांस में भेदभाव की कई बाते हैं। बुर्का पर प्रतिबंध को लेकर ज्यादातर मुस्लिम समुदाय के लोगों ने आपत्ति की और भेदभाव बताया। स्पेन में मुसलमानों के खिलाफ आंतरिक घृणा अपराधों की रिपोर्ट इतनी अधिक है, इसका भी रिपोर्ट में उल्लेख किया गया है। पाकिस्तान की स्थिति आप जानते हैं, बांग्लादेश में क्या होता है, आप लोग जानते हैं कि अफगानिस्तान में सिखों, हिंदुओं, ईसाइयों के साथ क्या हुआ है।

जब कोई समस्या होती है तो भारत की शरण में आते हैं लोग- रिजिजू

रिजिजू ने आगे कहा, चाहे तिब्बत हो या म्यांमार, श्रीलंका हो या बांग्लादेश, पाकिस्तान हो या अफगानिस्तान, अगर अल्पसंख्यकों के खिलाफ अत्याचार होता है या कोई समस्या आती है, तो सबसे पहले वे भारत आते हैं। भारत सेफ है, इसलिए तो आते हैं। घर-परिवार में भी झगड़े होते हैं। इसको भारत में अल्पसंख्यकों को कोई जगह नहीं दी जा रही है, सिखों को गुरुद्वारा नहीं जाने दिया जा रहा है, मुसलमानों को दरगाह नहीं जाने दिया जा रहा है, ऐसा क्यों कहते हैं। मैं यह कह रहा हूं कि ऐसी बातें नहीं कही जानी चाहिए जिससे देश की छवि को नुकसान पहुंचे, मैं यह किसी एक पार्टी के लिए नहीं कह रहा हूं। मैं यह देश के लिए कह रहा हूं।

दिल्ली आने पर अड़े किसान, रोकने के लिए पुलिस ने छोड़ा वाटर कैनन

#farmers_protest_shambhu_border_delhi_march

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पंजाब के किसान फरवरी से अपनी मांगों को लेकर शंभू बाॅर्डर पर बैठे हैं। किसान दो बार दिल्ली कूच का प्रयास कर चुके हैं, लेकिन दोनों बार हरियाणा पुलिस ने उन्हें आगे बढ़ने से रोक दिया था। आज फिर किसान दिल्ली की तरफ कूच कर रहे हैं। किसानों के आगे बढ़ते ही पुलिस ने उन्हें रोकने के लिए वाटर कैनन का इस्तेमाल किया। इसके अलावा आंसू गैस के गोले छोड़े गए। पुलिस की कार्रवाई से किसानों में भगदड़ मच गई है। कई किसानों के घायल होने की सूचना है।

शंभू बॉर्डर से आज 101 किसानों का जत्था दिल्ली की ओर दोपहर 12 बजे रवाना हुआ था। किसान इसके पहले भी दो बार दिल्ली कूच की कोशिश कर चुके हैं, लेकिन दोनों बार हरियाणा पुलिस ने उन्हें आगे बढ़ने से रोक दिया था। शंभू बॉर्डर पर पुलिस ने किसानों से कहा-जब तक आप शांतिपूर्वक हो, हम आपसे दोगुना शांतिपूर्वक हैं। अगर आपको दिल्ली जाकर धरना देना है तो आप परमिशन के लिए अप्लाई कर दें और अगर परमिशन मिलती है तो हम आपको खुद वहाँ पर छोड़कर आएंगे।

हरियाणा के कैबिनेट मंत्री अनिल विज ने किसानों के दिल्ली कूच करने पर अपनी प्रतिक्रिया दी और कहा कि किसानों की चर्चा सुप्रीम कोर्ट से चल रही है और सुप्रीम कोर्ट ने भी कहा है कि किसानों के साथ जो चर्चा चल रही है वह ठीक ट्रैक पर है। उसके लिए हमें थोड़ा समय चाहिए और किसानों को थोड़े समय के लिए अपना आंदोलन स्थगित कर देना चाहिए। विज ने कहा कि मुझे भी लगता है कि किसानों को सुप्रीम कोर्ट की राय मान लेनी चाहिए।

शंभू बॉर्डर पर चल रहे किसान आंदोलन को समर्थन देने के लिए कांग्रेस नेता और पहलवान बजरंग पूनिया सुबह 10 बजे करनाल पहुंचे। उन्होंने किसान को समर्थन देने का एक दिन पहले ही ऐलान कर दिया था। करनाल पहुंचे बजरंग पूनिया ने कहा कि हमें जात-पात से ऊपर उठ कर किसानों का साथ देना चाहिए। क्योंकि किसान देश का अन्नदाता है और हम लोग जो अनाज खाते है। उस अनाज को किसान खेतों में कड़ी मेहनत कर के उगाता है। उन्होंने कहा कि किसान अपनी फसलों का न्यूनतम दाम मांग रहे है। हरियाणा के किसानों को लेकर उन्होंने कहा कि नोएडा व गाजीपुर बॉर्डर पर किसान अपनी मांगों को लेकर बैठे है। हरियाणा सरकार को लेकर कहा कि हर साल 12000 किसान आत्महत्या करते है । क्योंकि कि किसानों को उनकी फसलों का सही दाम नहीं मिल रहा। जितनी उनकी लागत होती है वो भी उनको नहीं मिल रहा है। सरकार को यह आंकड़े देख कर किसानों की मांगों को पूरा करना चाहिए ताकि किसान आज के समय में आत्महत्या करने पर मजबूर न हो।

OpenAI और ChatGPT पर सवाल उठाने वाले सुचिर बालाजी कौन? जिनकी अमेरिका में मौत

#indian_american_suchir_balaji_who_questioned_openai_dies

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चैटजीपीटी (ChatGPT) डेवलप करने वाली आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस कंपनी OpenAI के पूर्व रिसर्चर सुचीर बालाजी को उनके फ्लैट में मृत पाया गया है। OpenAI पर गंभीर सवाल खड़े करने वाले सुचीर बालाजी की मौत सैन फ्रांसिस्को में उनके अपार्टमेंट हुई।शुरुआती रिपोर्ट में सामने आ रहा है कि बालाजी ने आत्महत्या की है। वह अपने फ्लैट में मृत मिले।

सैन फ्रांसिस्को पुलिस विभाग के प्रवक्ता अधिकारी रॉबर्ट रुएका ने बताया कि शुरुआती जांच के दौरान किसी गड़बड़ी का कोई सबूत नहीं मिला है। एक मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, बालाजी का शव 26 नवंबर को उनके बुकानन स्ट्रीट अपार्टमेंट में मिला। उनके लिंक्डइन प्रोफाइल के अनुसार, उन्होंने नवंबर 2020 से अगस्त 2024 तक ओपनएआई के लिए काम किया था।

26 साल के सुचिर बालाजी ने OpenAI को लेकर दुनिया को सतर्क किया था। सुचिर ने एआई में योगदान तो दिया ही था साथ ही इस कंपनी में गलत परंपराओं ओर हरकतों को लेकर मजबूत आवाज उठाई थी। दरअसल, सुचिर का कहना था कि ओपनएआई ने चैट जीपीटी बनाने के लिए बिना अनुमति के पत्रकारों, लेखकों, प्रोग्रामरों आदि के कॉपीराइटेड सामग्रियों का इस्तेमाल किया है, जिसका सीधा असर कई बिजनेसों और कारोबारों पर पड़ेगा। माना जा रहा था कि ओपनएआई के खिलाफ चल रहे कानूनी मामलों में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएंगे।

सुचीर बालाजी ने मौत से तीन महीने पहले सार्वजनिक रूप से दावा किया था कि OpenAI ने अमेरिका के कॉपीराइट कानून का उल्लंघन किया है। 23 अक्टूबर को विदेशी मीडिया को एक इंटरव्यू देते समय बालाजी ने यह तर्क दिया था कि OpenAI उन व्यवसायों और उद्यमियों पर नैगेटिव प्रभाव डाल रहा था जिनको चैटजीपीटी को ट्रेन करने के लिए जानकारी हासिल करने के लिए इस्तेमाल किया गया है। उन्होंने कहा, अगर आप मेरी बातों पर यकीन करते हैं, तो आपको कंपनी छोड़ देनी होगी। साथ ही उन्होंने कहा था, “यह इंटरनेट इकोसिस्टम के लिए एक टिकाऊ मॉडल नहीं है।