मुख्यमंत्री योगी ने खिलाड़ी पुलिस कर्मियों के प्रशिक्षण, आहार को दिये 10 करोड़ रुपये
लखनऊ। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सोमवार को रिजर्व पुलिस लाइन में आयोजित पुलिस स्मृति दिवस के अवसर पर वर्दी भत्ते में 70 प्रतिशत की वृद्धि, बैरक में रहने वाले आरक्षियों के पुलिस अकोमोडेशन अलाउंस में 25 प्रतिशत की वृद्धि और राष्ट्रीय-अंतरराष्ट्रीय खेलकूद में प्रतिभाग करने वाले खिलाड़ियों के प्रशिक्षण, आहार समेत अन्य मदों के लिए अगले वित्तीय वर्ष के बजट में 10 कराेड़ रुपये बढ़ाने की घोषणा की।

इन घोषणाओं पर प्रदेश सरकार 115 करोड़ रुपये का खर्च वहन करेगी। मुख्यमंत्री योगी ने बहु मंजिल आवास और प्रशासनिक भवन के रखरखाव के लिए 1,380 करोड़ रुपये के कॉरपस फंड की घोषणा की। वहीं, अंतरराष्ट्रीय आयोजन में पुलिस बल पर आने वाले खर्च पर प्रस्तावित शुल्क लगाने की स्वीकृति की, जो पुलिस महानिदेशक के अधीन रहेगा। साथ ही इसका सम्मान प्रस्तावित कॉरपस नियमावली के तहत किया जाएगा। इससे पहले मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने पुलिस शहीद स्मारक पर पुष्पांजलि अर्पित करते हुए दिवगंत शहीद पुलिस कर्मियों को याद किया।

115 शहीद कार्मिकों के आश्रितों को दी 36.20 करोड़ रुपये की आर्थिक सहायता

कार्यक्रम के दौरान मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने रविवार को कहा कि कर्तव्यों का पालन करते हुए शहीद पुलिस कर्मी, केंद्रीय अर्ध सैनिक बलों तथा भारतीय सेवा में कार्यरत उत्तर प्रदेश के 115 शहीद कार्मिकों के आश्रितों को 36 करोड़ 20 लाख की आर्थिक सहायता प्रदान की गयी है। वहीं, जिलों में तैनात पुलिस कर्मियों की सुख सुविधा के लिए तीन करोड़ 50 लाख, कल्याण के लिए चार करोड़, कार्यरत, सेवानिवृत पुलिसकर्मी एवं उनके आश्रितों के चिकित्सा प्रतिपूर्ति संबंधी 2,66 दावों के निस्तारण के लिए 30 लाख 56,000 रुपये की राशि दी गयी। इसी तरह पांच लाख से अधिक चिकित्सा प्रतिपूर्ति संबंधी 3,12 प्रकरण के लिए 12 करोड़ 60 लाख, 135 पुलिस कर्मियों और उनके आश्रितों की गंभीर बीमारियों के उपचार के लिए अग्रिम ऋण के रूप में पांच करोड़ पांच लाख, जीवन बीमा योजना के तहत 3,06 मृतक पुलिस कार्मिकों के आश्रितों की सहायता के लिए नौ करोड़ आठ लाख रुपये, पुलिस कर्मियों और उनके आश्रितों द्वारा कराए गए कैशलेस उपचार के तहत 31 लाख 16 हजार रुपये, पुलिस कार्मिकों के 205 मेधावी छात्रों को शिक्षा निधि के माध्यम से 53 लाख 30,000 रुपये की छात्रवृत्ति का भुगतान किया गया।

एक हजार से अधिक पुलिसकर्मियों को अति उत्कृष्ट सेवा पदक से किया गया सम्मानित

मुख्यमंत्री ने कहा कि गणतंत्र और स्वतंत्रता दिवस पर राष्ट्रपति द्वारा विशिष्ट सेवाओं के लिए चार तथा दीर्घ-सराहनीय सेवाओं के लिए 110 अधिकारियों और कर्मचारियों को पुलिस पदक का प्रदान किये गये। गृह मंत्रालय भारत सरकार ने 1,013 पुलिस कार्मिकों को अति उत्कृष्ट सेवा पदक तथा 729 कार्मिकों को उत्कृष्ट सेवा पदक से सम्मानित किया गया। वहीं, तीन राजपत्रित अधिकारियों संग कर्मचारियों को मुख्यमंत्री उत्कृष्ट सेवा पुलिस पदक प्रदान किया गया। पुलिस महानिदेशक ने मानदेय और राजपत्रित पुलिस कार्मिकों को उत्कृष्ट सेवा सम्मान चिन्ह, 455 पुलिस कर्मियों को सराहनीय सेवा सम्मान चिन्ह प्रदान किया गया। पुलिस कार्मिकों को प्रोत्साहित करने के उद्देश्य से पुलिस महानिदेशक उत्तर प्रदेश का प्रशंसा चिन्ह डीजी कमेंडेशन डिस्क 29 प्लेटिनम, 51 गोल्ड और 783 सिल्वर राजपत्रित और अराजपत्रित कार्मिकों को प्रदान किए गए।

गैंगस्टर एक्ट के तहत 77,811 अपराधियों के खिलाफ की गई कार्रवाई

मुख्यमंत्री योगी ने कहा कि प्रदेश में 2017 के बाद पुलिस विभाग के विभिन्न पदों पर 1,54,000 से अधिक भर्तियां की गयीं। इसमें 22,000 से अधिक महिला कार्मिक शामिल हैं। विभिन्न राजपत्रित पदों पर एक लाख 41,000 से अधिक कार्मिकों को पदोन्नति दी गयी। वर्तमान में 60,000 से अधिक पदों पर भर्ती प्रक्रिया चल रही है।

प्रदेश में शांति और कानून का राज्य स्थापित करने के लिए पिछले 7 वर्ष में 17 जवानों ने अप्रतिम शौर्य का प्रदर्शन करते हुए वीरगति को प्राप्त किया जबकि 1,618 पुलिसकर्मी घायल हुए। प्रदेश में अपराधियों पर शिकंजा कसने के लिए गैंगस्टर एक्ट के तहत 77,811 और 9,23 अभियुक्तों के विरुद्ध कार्रवाई की गई। माफिया और अपराधी गिराहों के 68 मुकदमों में प्रभावी पैरवी कर 31 माफिया तथा उनके 66 सहयोगियों को आजीवन कारावास की सजा दिलायी गयी। इसके अलावा दो को फांसी की सजा हुई है। माफिया और उनके गैंग के सदस्यों द्वारा अर्जित चार हजार 57 करोड़ की अवैध संपत्ति को जब्त किया गया।

उन्होंने कहा कि एंटी रोमियो स्क्वायड द्वारा 22 मार्च 2017 से 2 अक्टूबर 2024 तक 1 करोड़ 2 लाख से अधिक स्थानों पर चेकिंग की। साथ ही तीन करोड़ 68 लाख से अधिक व्यक्तियों के खिलाफ कार्रवाई की। इस दौरान 23,375 अभियोग पंजीकृत कर 31 हजार 517 के खिलाफ वैधानिक कार्रवाई की गयी जबकि एक करोड़ 39 लाख से अधिक व्यक्तियों को चेतावनी देकर छोड़ दिया गया।

प्रदेश के हर थाने में महिला बीट आरक्षित तथा महिला हेल्थ डेस्क की स्थापना की गई। सभी जनपदों में 15,130 महिला पुलिसकर्मी को नियुक्त करते हुए 10,378 महिला बीट आवंटित की गयी। ऑपरेशन त्रिनेत्र के तहत 11 लाख 71,000 से अधिक सीसीटीवी स्थापित किए गए।

धार्मिक स्थलों से एक लाख से अधिक लाउडस्पीकर उतारे गये

मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश में एक अभियान के तहत धार्मिक स्थलों से 1,08,037 से अधिक लाउडस्पीकर उतारे गए या उच्चतम न्यायालय की गाइडलाइन के अनुसार उनकी ध्वनि नियंत्रित की गयी। 31 मई 2017 से दो अक्टूबर 2024 तक पुलिस द्वारा दो करोड़ 68 लाख से अधिक स्थानों पर फुट पेट्रोलिंग के माध्यम से सुरक्षा का एक बेहतर वातावरण प्रस्तुत किया गया। योगी ने कहा कि पुलिस विभाग के अधिकारियों और कर्मचारियों की कर्तव्य पालन के दौरान मृत्यु होने पर जो विभिन्न प्रकार की शिकायतें शासन के पास उपलब्ध होती रही हैं, उसी क्रम में उन कर्मियों के परिवारजनों खासतौर पर उनकी पत्नी तथा माता-पिता के जीवित न रहने की दिशा में शासन आदेश में वर्णित व्यवस्था के अनुसार मृतक के परिवार को पूर्ण धनराशि नहीं मिलने की समस्या बताई गई थी।

इस पर विचार करते हुए निर्णय लिया गया है कि वर्तमान शासन आदेश को संशोधित करते हुए अनुग्रह की संपूर्ण धनराशि 25 लाख या 50 लाख रुपए जैसी अनुमान्यता है को पूर्णतया मृतक की पत्नी, माता-पिता या जो भी कानूनी वारिस हो उसको उपलब्ध कराई जाए।

इस अवसर पर मंत्री असीम अरुण, महापौर सुषमा खर्कवाल, मुख्य सचिव मनोज कुमार सिंह, डीजीपी प्रशांत कुमार, अपर मुख्य सचिव (गृह) दीपक कुमार, अपर पुलिस महानिदेशक सुजीत पांडेय और मंडलायुक्त रोशन जैकब आदि शामिल हुए।

बहादुर जवानों ने प्रदेश में कानून राज बनाये रखने के लिए शानदार काम किया: मुख्यमंत्री योगी

लखनऊ। पुलिस स्मृति दिवस का आयोजन साेमवार 21 अक्टूबर को रिजर्व पुलिस लाइन में आयोजित हुआ। इस अवसर पर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने शहीद पुलिस जनों को श्रद्वाजंलि अर्पित की। शहीदों के परिजनों को सम्मानित भी किया। इससे पहले उन्हाेंने परेड की सलामी ली।

इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने कहा कि पुलिस जन अत्यंत कठिन परिस्थितियाें में भी अपना काम करते हैं। हमारे बहादुर जवानों ने प्रदेश में कानून राज बनाये रखने के लिए शानदार काम किया। अपने कर्तव्य को निर्वाहन करते हुए करीब 1618 पुलिस कर्मी घायल हुए। 17 पुलिसकर्मियों ने अपनी जान गवाईं। 61 माफियाओं की सजा दिलायी गई है। मुख्यमंत्री ने कहा कि लोगों को सुरक्षा का माहौल दिया गया। प्रदेश में 11.73 लाख सीसीटीवी लगाये गए। 2.68 लाख किमी. फुट पेट्रोलिंग की गयी।


अपराध पर नियंत्रण करने, कानून व्यवस्था काे बेहतर बनाये करने के साथ-साथ महिला सुरक्षा के प्रयास का सराहनीय है। 115 शहीद कर्मिकों को 36 करोड़ 20 लाख की आर्थिक सहायता दी जा रही है। पुलिस कर्मियों के चिकित्सा से जुड़े मामलों में 12 करोड़ रुपये, गंभीर रूप से बीमार लोगों को पांच करोड़ रुपये दिए जा रहे हैं। मृतक आश्रितों को सहायता उपलब्ध करायी जा रही है। एक लाख से अधिक पुलिस कर्मियों को प्रोन्नति दी गई।

60 हजार पुलिस कर्मियों की भर्ती का काम चल रहा है। इस अवसर पर शहीद पुलिस कर्मी रोहित कुमार और सचिन राठी के परिवार को सम्मनित किया गया। इस माैके पर महापाैर सुषमा खर्कवाल, समाज कल्याण मंत्री असीम अरूण, पुलिस महानिदेशक प्रशांत कुमार समेत अन्य पुलिसकर्मी माैजूद थे।उल्लेखनीय है कि कर्तव्यपालन के दाैरान संवेदनशीलता, समपर्ण और त्याग का अप्रतिम उदाहरण प्रस्तुत करने वाले शहीद पुलिसकार्मिकाें की स्मृति में प्रतिवर्ष 21 अक्टूबर को पुलिस स्मृति दिवस मनाया जाता है।
करवा चौथ पर पति की गुहार : मेरी पत्नी शराबी है,मुझे बचा लो, परामर्श केंद्र में गिले शिकवे के बाद हुआ समझौता
लखनऊ /झांसी। करवा चौथ पर महानगर के महिला थाने में एक अजब-गजब मामला सामने आया है। एक व्यक्ति ने परामर्श केंद्र में मदद की गुहार लगाते हुए अपनी पत्नी से बचाने की प्रार्थना की। पति-पत्नी का झगड़ा जब परामर्श केंद्र में पहुंचा तो काउंसलर ने इसकी वजह जाननी चाही। इस पर पति ने काउंसलर को बताया कि उसकी बीवी शराब पीती है। इस वजह से अक्सर घर में झगड़ा होता है। पति का आरोप है कि कई बार तो उसे भी पत्नी जबरन नशे में टल्ली कर देती है। इस वजह से वह पत्नी को मायके छोड़ आया था। पत्नी की शिकायत पर पुलिस ने पति-पत्नी के बीच के झगड़े को परिवार परामर्श केंद्र में भेज दिया।

परिवार परामर्श के काउंसलर के मुताबिक जब दोनों पति-पत्नी की काउंसिलिंग हुई तो दोनों के बीच मौके पर ही कहा-सुनी होने लगी। पति का आरोप था कि शाम होते ही उसकी पत्नी शराब पीने लगती है। इसके साथ ही उसे भी जबरदस्ती शराब पिलाकर नशे में कर देती है। वह रोज-रोज इस महंगाई में पत्नी को शराब नहीं पिला सकता। पत्नी दारु पीने के लिए रोज जबरदस्ती करती है। पति ने आरोप लगाया है कि पत्नी एक बार में तीन से चार पैग पीती है जबकि उसे शराब पीना बिल्कुल पसंद नहीं है। वहीं, दूसरी तरफ पत्नी ने सभी आरोपों को स्वीकार कर लिया।

वीरांगना नगर में रहने वाली पत्नी सरला (काल्पनिक नाम) ने आरोप लगाया था कि उसके पति ने मारपीट कर उसे घर से बाहर निकाल दिया है। अब वह मायके में रह रही है। इसकी उसने पुलिस में शिकायत की थी। इसके बाद पति को काउंसलिंग के लिए बुलाया गया। पति ने बताया कि दो महीने पहले उसकी शादी हुई थी। पहली ही बार में पत्नी ने शराब पीने की बात कही। इसके बाद हर रोज शराब पीने लगी और उसे भी जबरदस्ती पिलाने लगी। वह पत्नी की शराब पीने की आदत से बेहद परेशान हो गया और मजबूरी में मायके छोड़ आया था।इस मामले में महिला थानाध्यक्ष किरन रावत ने बताया कि काउंसलर व टीम ने पति-पत्नी व उनके परिजनों को समझाया। दोनों के गिले-शिकवे सुने। इसके बाद पति-पत्नी साथ में रहने को तैयार हो गए हैं।
योगी सरकार की अगुवाई में हो रहा किशोरों के स्वास्थ्य और विकास की मध्यावधि प्रगति पर मंथन


लखनऊ। किशोरों की शिक्षा, शारीरिक-मानसिक स्वास्थ्य और सामाजिक विकास किसी भी देश और समाज के भविष्य के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण हैं। भारत सरकार के शिक्षा मंत्रालय की इस मुहिम को उत्तर प्रदेश की योगी सरकार ने भी गंभीरता से लिया है और इस दिशा में कदम बढ़ाया है। योगी सरकार द्वारा भारत सरकार के शिक्षा मंत्रालय और राष्ट्रीय जनसंख्या शिक्षा परियोजना (एनपीईपी) के अंतर्गत नई दिल्ली स्थित एनसीईआरटी की देखरेख में एक मंथन आयोजित कर रही है। जिसमें उत्तर प्रदेश समेत 34 राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के साथ 5 क्षेत्रीय शिक्षा संस्थानों से लगभग 70 प्रतिनिधि हिस्सा ले रहे हैं।

यह मंथन किशोरों के समग्र विकास के लिए नीतियों का निर्माण करने और उनकी शिक्षा, स्वास्थ्य और सामाजिक कल्याण से जुड़े मुद्दों पर चर्चा करने का एक प्रयास है। इस कार्यक्रम में सामाजिक विज्ञान शिक्षा विभाग, एनसीईआरटी नई दिल्ली और उत्तर प्रदेश एससीईआरटी की सहभागिता से किशोरों को स्वस्थ जीवनशैली, मानसिक स्वास्थ्य और समाज में सकारात्मक भूमिका निभाने के लिए प्रेरित करने के प्रयासों की चर्चा हो रही है और आगे की योजनाओं पर विचार किया जा रहा है।

किशोरों के स्वास्थ्य पर विशेष ध्यान

इस मंथन में किशोरों के शारीरिक स्वास्थ्य के साथ-साथ मानसिक और सामाजिक कल्याण जैसे मुद्दों पर विशेष ध्यान दिया जा रहा है। गैर-संक्रामक रोगों (एनसीडी) जैसे हृदय रोग, कैंसर और श्वास संबंधी बीमारियों के बढ़ते खतरे को ध्यान में रखते हुए उत्तर प्रदेश के किशोरों में भी स्वास्थ्य संबंधी जागरूकता बढ़ाने के प्रयास करने के उपाय खोजे जा रहे हैं।

एनसीईआरटी के निदेशक बोले

एनसीईआरटी ने कहा कि प्रो. दिनेश प्रसाद सकलानी ने बताया कि एनसीईआरटी के तत्वावधान में 19 से 21 अक्टूबर तक आयोजित राष्ट्रीय जनसंख्या शिक्षा परियोजना (एनपीईपी) की मध्यावधि समीक्षा चल रही है। इसमें वित्तीय वर्ष 2024-25 की प्रथम छमाही अवधि के दौरान देश के सभी राज्यों/केंद्र शासित प्रदेशों, एससीईआरटी और क्षेत्रीय शिक्षा संस्थानों द्वारा जनसंख्या शिक्षा से संबंधित कार्यों की समीक्षा की जा रही है।

राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 के प्रावधानों के अलोक में हो रहा प्रयास

एनसीईआरटी की प्रो. गौरी श्रीवास्तव ने बताया कि राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 और एनसीएफ 2023 के दिशा-निर्देशों के अनुरूप, यह मंथन किशोरों की शिक्षा और समग्र विकास पर केंद्रित है। इसमें यह सुनिश्चित करने के प्रयास हो रहे हैं कि विभिन्न राज्यों से प्राप्त आंकड़ों के आधार पर किशोरों के विकास के लिए बनाई जाने वाली नीतियों का सटीक और प्रभावी निर्माण किया जा सके।

भारतीय ज्ञान परंपरा पर दिया जा रहा जोर

एससीईआरटी लखनऊ के निदेशक गणेश कुमार के अनुसार राष्ट्रीय शिक्षा नीति (2020) के अंतर्गत टीम वर्क, मूल्य संवर्धन और भारतीय ज्ञान परंपरा से जुड़े महत्व को भी रेखांकित किया जा रहा है। यह एक तरह से योजना के मध्यावधि प्रगति की समीक्षा है।

किशोरों के भविष्य पर गंभीर चर्चा

एससीईआरटी, उत्तर प्रदेश के संयुक्त निदेशक डॉ पवन सचान कहते हैं कि इस तीन दिवसीय मंथन कार्यक्रम में 21 अक्टूबर तक विशेषज्ञों और प्रतिनिधियों द्वारा किशोरों के भविष्य से जुड़े प्रमुख मुद्दों पर विचार-विमर्श व मध्यावधि समीक्षा हो रही है। इसका उद्देश्य देश की युवा पीढ़ी को सशक्त और जागरूक बनाने के लिए भविष्य की ठोस नीतियों का निर्माण करना है। डॉ सचान ने बताया कि किशोरावस्था के दौरान होने वाले शारीरिक और मानसिक परिवर्तनों पर सकारात्मक दृष्टिकोण रखने पर जोर, शारीरिक व्यायाम और प्ले ग्राउंड की आवश्यकता पर विशेष बल देने का साथ ही ड्रग्स और इंटरनेट की लत के खतरों पर भी विचार-विमर्श हो रहा है।

कहती है आईसीएमआर की रिपोर्ट

आईसीएमआर की रिपोर्ट के अनुसार, 1990 से 2016 के बीच भारत में गैर-संक्रामक रोगों से होने वाली मौतों में भारी वृद्धि हुई है। इसे ध्यान में रखते हुए अब योगी सरकार ने भी यूपी के किशोरों में स्वस्थ आहार, नियमित व्यायाम और नशे से दूर रहने के लिए विशेष अभियान शुरू कर दिये हैं। हालांकि अभी इसे और पुष्ट करने की कोशिशें जारी हैं।

समाज में जिम्मेदार नागरिक के रूप में किशोरों को तैयार करना है उद्देश्य: संदीप सिंह

बेसिक शिक्षा राज्यमंत्री संदीप की मानें तो इस मंथन का एक अन्य महत्वपूर्ण उद्देश्य किशोरों को समाज में एक सक्रिय और जिम्मेदार नागरिक के रूप में तैयार करना है। इस मंथन में कम उम्र में विवाह, मादक द्रव्यों का सेवन और सामाजिक हिंसा जैसे मुद्दों पर गंभीर चर्चा की जा रही है, ताकि किशोरों को इन चुनौतियों से निपटने के लिए उचित मार्गदर्शन किया जा सके।
बहराइच हिंसा के आरोपियों के अवैध निर्माण को ढहाने की कार्रवाई फिलहाल रुकी, हाईकोर्ट ने दी राहत

लखनऊ /बहराइच। बहराइच हिंसा के आरोपियों के अवैध निर्माण को ढहाने की कार्रवाई फिलहाल रुक गई है। हाईकोर्ट की लखनऊ पीठ में मामला पहुंचने पर कोर्ट ने राज्य सरकार से 23 अक्तूबर को जानकारी पेश करने का आदेश दिया है। साथ ही जिन कथित अवैध निर्माणकर्ताओं को नोटिसें जारी की गई हैं, उन्हें भी इनका जवाब दाखिल करने के लिए 15 दिन का समय देकर अफसरों को इनका निस्तारण करने का आदेश दिया है।


न्यायमूर्ति एआर मसूदी और न्यायमूर्ति सुभाष विद्यार्थी की खंडपीठ ने यह आदेश एसोसिएशन फॉर प्रोटेक्शन ऑफ सिविल राइट्स संस्था के पूर्वी उप्र के उपाध्यक्ष के जरिए दाखिल जनहित याचिका पर दिया। याचिका में बहराइच के कथित अवैध निर्माणकर्ताओं को 17 अक्तूबर को जारी ध्वस्तीकरण की नोटिसों को चुनौती देकर इन्हें रद्द करने का आग्रह किया गया है। याचिका में कहा गया कि सरकारी अमला समुदाय विशेष के लोगों के निर्माणों को अवैध बताकर ढहाने की कर्रवाई कर रहा है, जबकि वहां पर सड़कों आदि पर कोई अतिक्रमण नहीं किया गया है।

उधर, राज्य सरकार की ओर से मुख्य स्थायी अधिवक्ता ने याचिका का विरोध कर आपत्ति उठाई कि अतिक्रमण कर बने निर्माणों को लेकर नोटिसें जारी की गई हैं। नोटिसों को जनहित याचिका के माध्यम से चुनौती नहीं दी जा सकती। कोर्ट ने सरकारी वकील को यह आपत्तियां लिखित रूप में दाखिल करने के लिए तीन दिन का समय दिया।कोर्ट ने कहा कि निर्माणों के ध्वस्तीकरण मामले में सुप्रीम कोर्ट ने पहले ही बीते 17 सितंबर को संज्ञान लेकर आदेश दिया है। ऐसे में हम यह विश्वास करने का कोई कारण नहीं पाते हैं कि उत्तर प्रदेश सरकार सुप्रीम कोर्ट के आदेश का पूरी तत्परता से पालन नहीं करेगी। कोर्ट ने कहा इस मामले में जिनको नोटिसें जारी हुई हैं, उन्हें जवाब दाखिल करने के लिए महज तीन दिन का वक्त दिया गया है। कोर्ट ने कहा कि तीन दिन का समय काफी कम है। नोटिसों में जगह का ब्योरा भी स्पष्ट नहीं है। कोर्ट ने इनकों जवाब देने के लिए 15 दिन का समय दिया।
सौभाग्य है कि नए भारत के नेतृत्वकर्ता नरेंद्र मोदी उत्तर प्रदेश की काशी से करते हैं देश का प्रतिनिधित्व: योगी

लखनऊ/वाराणसी। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि एक ओर जहां इंफ्रास्ट्रक्चर में रोजगार के नए-नए माध्यम सृजित हुए हैं, वहीं दूसरी ओर देश के अंदर आम नागरिक के जीवन से जुड़ी स्वास्थ्य, शिक्षा व अन्य योजनाएं भी नए रूप में देखने को मिली हैं। सौभाग्य है कि नए भारत के नेतृत्वकर्ता के रूप में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी उत्तर प्रदेश के काशी से देश का प्रतिनिधित्व करते हैं। अपनी आध्यात्मिक व सांस्कृतिक विरासत को संरक्षित करते हुए नए काया और कलेवर के रूप में 10 वर्ष में बदलती काशी को पूरा देश-दुनिया देख रही है।

मुख्यमंत्री रविवार को सिगरा खेल स्टेडियम में आयोजित 6,611.18 करोड़ की कुल 23 परियोजनाओं के लोकार्पण शिलान्यास कार्यक्रम को सम्बोधित कर रहे थे। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी का कार्यक्रम में स्वागत कर मुख्यमंत्री ने कहा कि पिछले 10 वर्ष में केवल काशी में ही 44 हजार करोड़ रुपये की परियोजनाएं स्वीकृत हुई हैं। 34 हजार करोड़ से अधिक की परियोजनाएं पूर्ण हो चुकी हैं, जबकि 10 हजार करोड़ से अधिक की परियोजनाएं निमार्णाधीन हैं। दीपावली के ठीक पहले आज काशीवासियों को 3200 करोड़ रुपये की परियोजनाओं का उपहार प्राप्त हो रहा है।

10 वर्ष में हमने एक भारत-श्रेष्ठ भारत की परिकल्पना को साकार होते देखा

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि 10 वर्ष में हमने बदलते हुए नए भारत को देखा है। एक भारत, श्रेष्ठ भारत की परिकल्पना को साकार होते और मूर्त रूप लेते देखा है। भारत ने प्रत्येक क्षेत्र में विकास के नित नए प्रतिमान स्थापित किए हैं। रोड, एयर कनेक्टिविटी, वाटरवे या रेलवे-पब्लिक ट्रांसपोर्ट, नगरीय क्षेत्रों की मेट्रो व रैपिड रेल की सुविधा हो, प्रत्येक क्षेत्र में इंफ्रास्ट्रक्चर का आज आधुनिक मॉडल देखने को मिला है। दीपावली के ठीक पहले पीएम के करकमलों से काशीवासियों, प्रदेशवासियों और देशवासियों को 6700 करोड़ रुपये से अधिक की परियोजनाओं का उपहार प्राप्त हो रहा है।

हरियाणा की जीत पर बधाई दी तो लोकार्पण-शिलान्यास पर जताया आभार

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने जनसभा में हरियाणा की ऐतिहासिक विजय पर प्रदेशवासियों व काशीवासियों की तरफ से प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी का स्वागत-अभिनंदन किया। मुख्यमंत्री योगी ने कहा कि काशी में बाबतपुर एयरपोर्ट के नए टर्मिनल भवन के शिलान्यास, आगरा में नए एयरपोर्ट के शिलान्यास व सहारनपुर के सरसावा एयरपोर्ट के लोकार्पण हो रहा है। इसके लिए सहारनपुर व आगरा के नागरिकों की तरफ से आभार प्रकट करता हूं।

समारोह में इनकी रही मौजूदगी

समारोह में प्रदेश की राज्यपाल आनंदी बेन पटेल, केंद्रीय नागर विमानन मंत्री के. राममोहन नायडू, भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष चौधरी भूपेंद्र सिंह, उत्तर प्रदेश के उप मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य, ब्रजेश पाठक, प्रदेश सरकार के मंत्री सुरेश खन्ना, अनिल राजभ?, रवींद्र जायसवाल, गिरीश चंद्र यादव, दयाशंकर मिश्र 'दयालु', महापौर अशोक तिवारी, विधायक डॉ नीलकंठ तिवारी, सौरभ श्रीवास्तव, टी. राम, डॉ. अवधेश सिंह, जिला पंचायत अध्यक्ष पूनम मौर्य, विधान परिषद सदस्य हंसराज विश्वकर्मा आदि मौजूद रहे।
दिल्ली में धमाके के बाद यूपी  में भी हाई अलर्ट, प्रदेश से जुड़ी सीमाओं पर चौकसी, सभी जिलों में जांच

लखनऊ । दिल्ली के रोहिणी में प्रशांत विहार इलाके में सीआरपीएफ स्कूल के पास कार में हुए धमाके के बाद यूपी में भी हाई अलर्ट घोषित कर दिया गया है। दिल्ली के सीमावर्ती जिलों में संदिग्धों को दबोचने के लिए चौकसी बढ़ा दी गई है तो यूपी एटीएस भी इस घटना के पीछे शामिल संगठनों के बारे में सुराग जुटा रही है।

एडीजी कानून-व्यवस्था अमिताभ यश ने बताया कि दिल्ली की घटना के बाद सभी जिलों को अतिरिक्त सतर्कता बढ़ाने का निर्देश दिया गया है। उन्होंने बताया कि त्योहारों के दृष्टिगत पूरे प्रदेश में पहले ही अलर्ट जारी किया जा चुका था, हालांकि दिल्ली की घटना ने संवेदनशीलता बढ़ा दी है। इसके दृष्टिगत सभी जिलों को खास सतर्कता बरतने और संदिग्धों पर नजर रखने को कहा गया है। बता दें कि दिल्ली की घटना की अभी किसी संगठन ने जिम्मेदारी नहीं ली है, लेकिन यह आशंका जताई जा रही है कि इसे अंजाम देने वाले यूपी में पनाह लेने की कोशिश कर सकते हैं। साथ ही, यूपी में भी इस तरह की घटना को अंजाम देने की साजिश रची जा सकती है।

लिहाजा पुलिस समेत सभी सुरक्षा बलों के प्रतिष्ठानों, भीड़भाड़ वाले बाजारों, एयरपोर्ट, रेलवे स्टेशन, बस अड्डे आदि की सुरक्षा बढ़ाई जा रही है। वहीं एटीएस की टीमें सहारनपुर,अलीगढ़, मेरठ समेत संवेदनशील जिलों में आतंकी संगठनों के स्लीपिंग माड्यूल्स की टोह लेने में जुटी हैं। प्रशांत विहार इलाके में रविवार सुबह सीआरपीएफ स्कूल के पास हुए धमाके के बाद इलाके में दहशत का माहौल है। सुबह में हुए धमाके के बाद ही आसपास के कई लोगों की नींद खुली।

स्थानीय लोगों का कहना है कि पहले तो उन्हें सिलिंडर विस्फोट या फिर मकान गिरने का अंदेशा हुआ। लेकिन घटनास्थल के पास पहुंचने पर अहसास हुआ कि यहां पर विस्फोट किया गया है। लोगों ने बताया कि गनीमत है कि घटना में कोई हताहत नहीं हुआ है। अगर धमाका सोमवार को होता तो हताहतों की संख्या का अंदाजा लगाना मुश्किल होता।
सपा-कांग्रेस पर जमकर बरसे पीएम, बोले- देश के विकास में बाधक हैं ये पार्टियां
लखनऊ /वाराणसी । प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने रविवार को हरिहरपुर स्थित आरजे शंकर नेत्र अस्पताल को आमजन के लिए लोकार्पित किया। इसके बाद मोदी ने वाराणसी स्पोर्ट्स स्टेडियम का उद्घाटन करने के बाद सपा और कांग्रेस सहित विपक्षी दलों पर जमकर निशाना साधा। कहा कि इन लोगों ने देश के विकास को आगे ही नहीं बढ़ने दिया। आज भी विकास कार्यों में रोढ़ा डालने का काम कर रहे हैं। खिलाड़ियों को सम्मान देने का काम भाजपा ने ही किया है। प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि भविष्य में एक लाख युवाओं को राजनीति का हिस्सा बनाया जाएगा। युवाओं से आह्वान किया कि इसके लिए वे आगे आएं और देश की तरक्की का हिस्सा बनें।

मोदी ने कहा कि कांग्रेस, सपा समेत तमाम विपक्षी पार्टियां देश के विकास में भी परिवारवाद कर रही थीं। भाजपा जो कहती है वह डंके के चोट पर करती है। अयोध्या में राम मंदिर का सपना भाजपा ने ही पूरा किया। महिलाओं को विधान और लोकसभा में आरक्षण की बात कही गई थी, जिसे हमने ही पूरा किया। कहा कि भाजपा सरकार ने मुस्लिम महिलाओं को सम्मान दिलाया। तीन तलाक के नाम पर वे न जानें कितने वर्षों से प्रताड़ित थीं। अंधकारमय जिंदगी जी रही थीं। भाजपा सरकार ने महिलाओं को सिर ऊंचा कर चलने की हिम्मत दी है।पीएम मोदी ने अपने संबोधित के दौरान कहा कि देश में भाषाओं का भी विकास किया जा रहा है।

पाली भाषा का विकास किया जा रहा है। मैं विकास की इन सभी योजनाओं के लिए देश के सभी नागरिकों के साथ काशीवासियों को धन्यवाद देता हूं।पीएम मोदी ने कहा कि पिछले साल देश के एक दर्जन एयरपोर्ट के सुधार भी किए जा रहे हैं। अयोध्या में एक भव्य इंटरनेशल एयरपोर्ट राम भक्तों का स्वागत कर रहा है। एक समय था यूपी की सड़कें खस्ताहाली के लिए जानी जाती थी। 2014 के बाद यूपी की सड़कें बन रही हैं। सड़कें चमचमा रही हैं। काशी नगरी के विकास और विरासत को लेकर काम किया जा रहा है। यहां गलियों से लेकर सुंदर घाट लोगों का मन मोह रहे हैं।आज देश में विकास कार्यों की बहार आ गई है। देश के युवाओं को नौकरियां मिल रही हैं। बाबतपुर एयरपोर्ट पर आधुनिक सुविधा बढ़ते ही यहां के लोगों को रोजगार मिलने लगे।

आज बनारस आने वाले लोगों की संख्या में इजाफा हो रहा है। यहां पर्यटकों और व्यापारियों के आने की संख्या में भी बढ़ोतरी हुई है। वाराणसी पहुंचने पर सबसे पहले मोदी आरजे शंकर नेत्र अस्पताल को आमजन के लिए लोकार्पित किया। इस अस्पताल की स्थापना शंकरा आई हॉस्पिटल, प्रमुख निवेशक राकेश झुनझुनवाला परिवार और शंकरा आई फाउंडेशन,दक्षिण भारत (तमिलनाडु) के कांची कामकोटि मेडिकल ट्रस्ट के सहयोग से की गई है। 90 करोड़ की लागत से निर्मित नेत्र अस्पताल का लोकार्पण करने के बाद प्रधानमंत्री मोदी ने खास प्रदर्शनी का अवलोकन किया।  प्रधानमंत्री ने कहा कि अस्पताल वाराणसी और इस क्षेत्र के आने वाले लोगों के जीवन से अंधकार दूर करेगा, उन्हें प्रकाश की ओर ले जाएगा। यह अस्पताल एक प्रकार से आध्यात्मिकता व आधुनिकता का संगम है। यह अस्पताल बुजुर्गों की भी सेवा करेगा और बच्चों को भी रोशनी देगा।

यहां बहुत बड़ी संख्या में गरीबों को मुफ्त इलाज मिलने वाला है। प्रधानमंत्री ने कहा कि काशी की पहचान अनंतकाल से धर्म और संस्कृति की राजधानी के रूप में रही थी, अब काशी यूपी के पूर्वांचल के बड़े आरोग्य केंद्र, हेल्थकेयर हब के रूप में भी विख्यात हो रही है। काशी की पहचान स्वास्थ्य सेवाओं की वजह से भी होती है। प्रधानमंत्री ने कहा कि इस पावन महीने (दिव्य कार्तिक माह) में काशी आना एक पुण्य अनुभूति का अवसर होता है। कार्यक्रम में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि पिछले 10 वर्ष में काशी में विकास का नया रूप देखने को मिल रहा है। शिक्षा, स्वास्थ्य के क्षेत्र में नित नए प्रतिमान बन रहे हैं। विकास और सेवा के क्षेत्र में नए-नए प्रकल्प यहां काशी में जुड़ रहे हैं।  उन्होंने कहा कि लगभग ढाई हजार करोड़ रुपये की लागत से केवल स्वास्थ्य के क्षेत्र में यहां पर कार्य संपन्न हुआ है।

बीएचयू में 430 बेड सुपर स्पेशलिटी हॉस्पिटल,ईएसआईसी हॉस्पिटल में 150 बेड सुपर स्पेशलिटी हॉस्पिटल का निर्माण कर उत्तर प्रदेश, बिहार और आसपास के नागरिकों को बेहतर स्वास्थ्य सुविधा उपलब्ध करवाने की कार्रवाई यहां पर आगे बढ़ी है। वाराणसी में अस्पताल खोलने के लिए मुख्यमंत्री ने आरजे शंकर नेत्र अस्पताल प्रबंधन का आभार जताया। उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश पूरी दुनिया में विकास का नया मॉडल है। कार्यक्रम में कांची कामकोटि पीठम के शंकराचार्य जगदगुरू शंकर विजयेन्द्र सरस्वती ने भी आर्शीवचन दिया। अस्पताल के उद्घाटन के अवसर पर सीएम योगी ,राज्यपाल आनंदीबेन पटेल ,प्रदेश के उप मुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक, एस वी बालासुब्रमण्यम (चेयरमैन, एसईएफआई ), पद्मश्री डॉ आर.वी. रमणी ( संस्थापक और मैनेजिंग ट्रस्टी, शंकरा आई फाउन्डेशन इंडिया), मुरली कृष्णामूर्ति ( एक्जीक्यूटिव चेयरमैन शंकरा आई फाउन्डेशन) आदि भी मौजूद रहे।

पीएम से मिलने जा रहे कांग्रेस नेताओं को पुलिस ने रोका

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी से रविवार को मिलने जा रहे कांग्रेस के नेताओं को पुलिस ने मैदागिन स्थित पार्टी कार्यालय के बाहर ही रोक लिया। इससे नाराज कांग्रेस के नेताओं ने मैदागिन चौराहे पर पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी की प्रतिमा पर माल्यार्पण कर एसीपी कोतवाली को चार सूत्रीय मांगपत्र सौंपा। इस दौरान जिलाध्यक्ष राजेश्वर पटेल और महानगर अध्यक्ष राघवेंद्र चौबे ने कहा कि पूर्व घोषित कार्यक्रम के अनुसार हम लोग वाराणसी दौरे पर आए स्थानीय सांसद और देश के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी से सिगरा खेल स्टेडियम में मिलने जा रहे थे। पार्टी के मैदागिन स्थित कार्यालय के समीप ही पुलिस अफसरों ने हमें फोर्स के साथ रोक लिया। प्रशासन ने सरकार के इशारे पर बलपूर्वक अनैतिक रूप से यह कार्य किया है। हम लोग प्रधानमंत्री को काशी की मूलभूत मुद्दों को बताना चाह रहे थे। इसके पहले ही प्रशासन ने कांग्रेस कार्यालय को छावनी बना दिया। नेताओं ने कहा कि अपने सांसद से न मिलने देना अमानवीय कृत्य है । लोकतंत्र में पक्ष-विपक्ष के सहयोग की जरूरत होती है,परंतु यह तानाशाह सरकार तो विपक्ष से घबराती है। पर हम अपनी मांग और मुद्दों पर जनता के लिए खड़े रहेंगे।

काशी पूर्वांचल के बड़े आरोग्य केंद्र व हेल्थकेयर हब के रूप में विख्यात हो रही: पीएम मोदी
लखनऊ/वाराणसी। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने रविवार को हरिहरपुर स्थित आरजे शंकर नेत्र अस्पताल को आमजन के लिए लोकार्पित किया। इस अस्पताल की स्थापना शंकरा आई हॉस्पिटल, प्रमुख निवेशक राकेश झुनझुनवाला परिवार और शंकरा आई फाउंडेशन,दक्षिण भारत (तमिलनाडु) के कांची कामकोटि मेडिकल ट्रस्ट के सहयोग से की गई है। 90 करोड़ की लागत से निर्मित नेत्र अस्पताल का लोकार्पण करने के बाद प्रधानमंत्री मोदी ने खास प्रदर्शनी का अवलोकन किया।

इस अवसर पर प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि मुझे परमपूज्य शंकराचार्य के दर्शन का, उनसे प्रसाद और आशीर्वाद प्राप्त करने का सौभाग्य मिला है। शंकराचार्य के आशीर्वाद से ही काशी से पूर्वांचल को एक और आधुनिक अस्पताल मिल गया। भगवान शंकर की नगरी में शंकरा आई हॉस्पिटल आज से जन-जन के लिए समर्पित है। मैं वाराणसी समेत पूर्वांचल के सभी परिवारजनों को बहुत-बहुत बधाई देता हूं। शास्त्रों में भी कहा गया है कि तमसो मा ज्योतिर्गमय... यानी अंधकार से प्रकाश की ओर ले चलो। प्रधानमंत्री ने कहा कि अस्पताल वाराणसी और इस क्षेत्र के आने वाले लोगों के जीवन से अंधकार दूर करेगा, उन्हें प्रकाश की ओर ले जाएगा। यह अस्पताल एक प्रकार से आध्यात्मिकता व आधुनिकता का संगम है। यह अस्पताल बुजुर्गों की भी सेवा करेगा और बच्चों को भी रोशनी देगा। यहां बहुत बड़ी संख्या में गरीबों को मुफ्त इलाज मिलने वाला है।

प्रधानमंत्री ने कहा कि काशी की पहचान अनंतकाल से धर्म और संस्कृति की राजधानी के रूप में रही थी, अब काशी यूपी के पूर्वांचल के बड़े आरोग्य केंद्र, हेल्थकेयर हब के रूप में भी विख्यात हो रही है। काशी की पहचान स्वास्थ्य सेवाओं की वजह से भी होती है। प्रधानमंत्री ने कहा कि इस पावन महीने (दिव्य कार्तिक माह) में काशी आना एक पुण्य अनुभूति का अवसर होता है। यहां काशीवासियों के साथ ही संत जनों और परोपकारी लोग भी हैं। इससे सुखद सहयोग भला क्या हो सकता है। कार्यक्रम में प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि पिछले 10 वर्ष में काशी में विकास का नया रूप देखने को मिल रहा है। शिक्षा, स्वास्थ्य के क्षेत्र में नित नए प्रतिमान बन रहे हैं। विकास और सेवा के क्षेत्र में नए-नए प्रकल्प यहां काशी में जुड़ रहे हैं।

उन्होंने कहा कि लगभग ढाई हजार करोड़ रुपये की लागत से केवल स्वास्थ्य के क्षेत्र में यहां पर कार्य संपन्न हुआ है। बीएचयू में 430 बेड सुपर स्पेशलिटी हॉस्पिटल,ईएसआईसी हॉस्पिटल में 150 बेड सुपर स्पेशलिटी हॉस्पिटल का निर्माण कर उत्तर प्रदेश, बिहार और आसपास के नागरिकों को बेहतर स्वास्थ्य सुविधा उपलब्ध करवाने की कार्रवाई यहां पर आगे बढ़ी है। वाराणसी में अस्पताल खोलने के लिए मुख्यमंत्री ने आरजे शंकर नेत्र अस्पताल प्रबंधन का आभार जताया। उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश पूरी दुनिया में विकास का नया मॉडल है। आने वाले दिनों में गरीबों और आम जनता के लाभ के लिए कई योजनाएं चलाई जाएंगी। मुख्यमंत्री ने कहा कि काशी की सेवा और विकास के अभियान में एक नई कड़ी जुड़ गई है। इसके लिए प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी का अभिनंदन है। जगद्गुरु शंकराचार्य महाराज की प्रेरणा से 1977 से शुरू हुआ अभियान देश के विभिन्न क्षेत्रों में लोगों के जीवन में नई रोशनी लाने का काम कर रहा है।

कार्यक्रम में कांची कामकोटि पीठम के शंकराचार्य जगदगुरू शंकर विजयेन्द्र सरस्वती ने भी आर्शीवचन दिया। उन्होंने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व की जमकर सराहना की। उन्होंने कहा कि देश में जो विकास हो रहा है इसका मुख्य कारण है कि हमको अच्छे नेता मिले हैं। ईश्वर की कृपा की वजह से ही नरेंद्र दामोदरदास मोदी मिले हैं। विश्व में बहुत बड़ा प्रजातंत्र है। अच्छे नेता भी ईश्वर कृपा से मिलते हैं। उन्होंने कहा कि समाज में व्यक्ति भी मुख्य है और व्यक्तित्व भी मुख्य है। सबको जोड़ने वाला नेता भी चाहिए। भारत की विशेषता के लिए धर्म और संस्कृति का विकास होना बहुत जरूरी है। प्रदेश के उज्जवल भविष्य के लिए यह सब जरूरी है। इसके लिए उत्तर प्रदेश में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ भी शांति के लिए अच्छा काम कर रहे हैं।

इसके पहले प्रधानमंत्री मोदी ने कांची कामकोटि पीठम के शंकराचार्य जगदगुरू शंकर विजयेन्द्र सरस्वती से आर्शिवाद लिया और उनका कुशलक्षेम पूछा। अस्पताल के उद्घाटन के अवसर पर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ,राज्यपाल आनंदीबेन पटेल ,प्रदेश के उप मुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक, एस वी बालासुब्रमण्यम ( चेयरमैन, एसईएफआई ), पद्मश्री डॉ आर.वी. रमणी ( संस्थापक और मैनेजिंग ट्रस्टी, शंकरा आई फाउन्डेशन इंडिया), मुरली कृष्णामूर्ति ( एक्जीक्यूटिव चेयरमैन शंकरा आई फाउन्डेशन) आदि भी मौजूद रहे।
सीएम योगी ने की सिंचाई विभाग के कार्यों की समीक्षा,अगले साल बाढ़ सुरक्षा के लिए दिए  दिशा निर्देश


लखनऊ। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने रविवार को एक बैठक के दौरान सिंचाई विभाग के कार्यों की समीक्षा की और संतोष व्यक्त करते हुए कई महत्वपूर्ण निर्देश दिए। मुख्यमंत्री ने विभाग को कार्यों की समयबद्धता, गुणवत्ता और कर्मचारियों की ट्रेनिंग पर विशेष ध्यान देने को कहा। साथ ही, उन्होंने अगले वर्ष बाढ़ से बचाव की कार्य योजना तैयार करने के निर्देश भी दिए।

कार्य की समयबद्धता और गुणवत्ता पर जोर

बैठक के दौरान मुख्यमंत्री ने सिंचाई विभाग के अधिकारियों को निर्देशित किया कि सभी परियोजनाओं की समय पर पूर्णता सुनिश्चित की जाए। उन्होंने कहा कि देरी से न केवल लागत बढ़ती है बल्कि जनता को भी लाभ मिलने में देर होती है। इसलिए कार्यों की समयबद्धता प्राथमिकता होनी चाहिए। इसके साथ ही उन्होंने कार्यों की गुणवत्ता पर भी जोर देते हुए कहा कि विकास कार्यों में किसी प्रकार की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी।

कर्मचारियों की ट्रेनिंग अनिवार्य

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि सिंचाई विभाग के कर्मचारियों की क्षमता बढ़ाने के लिए उन्हें उचित प्रशिक्षण दिया जाए। उन्होंने यह भी कहा कि नई तकनीकों का उपयोग कर कार्यों की गुणवत्ता और दक्षता में सुधार किया जा सकता है। ट्रेनिंग के माध्यम से कर्मचारियों को आधुनिक तकनीकों से अवगत कराया जाना चाहिए, ताकि बाढ़ नियंत्रण और जल प्रबंधन के कार्य प्रभावी ढंग से किए जा सकें।

बाढ़ सुरक्षा के लिए कार्य योजना तैयार करने का निर्देश

मुख्यमंत्री ने आने वाले वर्ष में संभावित बाढ़ के खतरे से निपटने के लिए पहले से तैयार रहने की आवश्यकता पर बल दिया। उन्होंने कहा कि बाढ़ से बचाव के लिए अगले वर्ष की कार्य योजना जन प्रतिनिधियों और जिला प्रशासन के साथ मिलकर तैयार की जाए। योजना के तहत बाढ़ संभावित क्षेत्रों की पहचान कर, वहां तटबंधों की मरम्मत, जल निकासी व्यवस्था और अन्य आवश्यक तैयारियां समय रहते पूरी की जानी चाहिए। बैठक में प्रमुख सचिव सिंचाई और अन्य वरिष्ठ अधिकारियों ने भी भाग लिया और मुख्यमंत्री को विभाग के चल रहे कार्यों की प्रगति से अवगत कराया।