देश में आज से लागू नए आपराधिक कानून के तहत दिल्ली में पहला मामला दर्ज, जानें किसने कराया केस और क्यों?

#new_criminal_laws_2024_first_fir_registered_in_delhi 

देश में तीन नए क्रिमिनल कानून आज यानी 1 जुलाई से लागू हो गए। तीन नए क्रिमिनल कानून के तहत देश में पहली एफआईआर दर्ज हो गई। दिल्ली के कमला मार्केट पुलिस थाने में सोमवार को भारतीय न्याय संहिता के तहत यह एफआईआर दर्ज हुई है। नई दिल्ली रेलवे स्टेशन के फुटओवर ब्रिज के नीचे अवरोध पैदा करने और सामान बेचने के आरोप में एक रेहड़ी-पटरी वाले के खिलाफ भारतीय न्याय संहिता की धारा 285 के तहत यह मामला दर्ज किया गया है।आरोपी की पहचान बिहार के बाढ़ गांव निवासी पंकज कुमार के रूप में हुई है।

आज से पूरे देश में तीनों नए आपराधिक कानून भारतीय न्याय संहिता 2023, भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता 2023, और भारतीय साक्ष्य अधिनियम 2023 लागू हो गए है। इसके साथ ही अंग्रेजों द्वारा बनाए गए तीनों पुराने कानून इंडियन पीनल कोड 1860, क्रिमनल प्रोजीसर कोड (CrPC) 1898, 1973 और इंडियन एवीडेंस एक्ट 1872 कानून समाप्त हो गए।जिनके तहत कानूनों की परिभाषा बदल गई है। अपराध करने पर कड़ी सजा का प्रावधान किया गया है। इन तीन नए क्रिमिनल लॉ के लागू होने से भारत की आपराधिक न्याय प्रणाली में कई बदलाव आने की उम्मीद है।

संसद के दोनों सदनों से पास होने के बाद राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने तीनों नए क्रिमिनल लॉ बिल को मंजूरी दी थी। राष्ट्रपति की मंजूरी के साथ ही इन तीनों बिल कानू का रूप ले लिया। 2019 से इन तीनों कानूनों पर काम शुरू हुआ था। संसद में केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने कहा था कि पुराने कानूनों का मूल उद्देश्य अंग्रेजी शासन को मजबूत बनाना था। उनका उद्देश्य दंड देने का था, न्याय करने का नहीं। इन तीनों नए क्रिमिनल लॉ का उद्देश्य दंड नहीं, न्याय देना है. यहां दंड, न्याय देने का एक चरण है।

भारतीय दंड संहिता में 511 धाराएं थीं, लेकिन भारतीय न्याय संहिता में धाराएं 358 रह गई हैं। संशोधन के जरिए इसमें 20 नए अपराध शामिल किए हैं, तो 33 अपराधों में सजा अवधि बढ़ाई है। 83 अपराधों में जुर्माने की रकम भी बढ़ाई है। 23 अपराधों में अनिवार्य न्यूनतम सजा का प्रावधान है। छह अपराधों में सामुदायिक सेवा की सजा का प्रावधान किया गया है।

वहीं नए कानून के तहत पहली एफआईआर भी दर्ज हो गई है। यह एफआईआर दिल्ली के कमला मार्केट पुलिस थाने में दर्ज की गई। थाने के सब इंस्पेक्टर ने ही एफआईआर दर्ज कराई है, जिसमें आरोपी एक स्ट्रीट वेंडर को बनाया गया है। वहीं केस भारतीय न्याय संहिता कानून की धारा 285 के तहत दर्ज हुआ है। मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, एसआई कार्तिक मीणा ने स्ट्रीट वेंडर पकंज कुमार के खिलाफ शिकायत दी है। उन्होंने आरोप लगाया है कि वे पेट्रोलिंग पर थे। इस दौरान जब वे नई दिल्ली रेलवे स्टेशन पहुंचे और वहां फुट ब्रिज के पास डीलक्स शौचालय के आस-पास एरिया का जायजा ले रहे थे तो पकंज की रेहड़ी नजर आई। पंकज अपनी रेहड़ी पर पानी, बीड़ी, सिगरेट बेच रहा था, लेकिन यह रेहड़ी उसने आने जाने वाले रास्ते पर लगाई हुई थी। उसकी रेहड़ी के कारण लोगों को आवाजाही में परेशानी हो रही थी। सब इंस्पेक्टर ने उसे रेहड़ी हटाकर कहीं और लगाने के लिए कहा, लेकिन पंकज अपनी बात कहकर उनकी अनदेखी करके चला गया। इस बर्ताव के चलते उन्होंने रेहड़ी मालिक के खिलाफ थाने में एफआईआर दर्ज कर ली।

Tragic Loss in Karnataka: Pregnant 13-Year-Old Rape Victim's Death Sparks Massive Protests, Mirza Sarfaraz Arrested, News Censored By MSM

Gulbarga: 8-month-pregnant 13-year-old rape victim dies to due excessive bleeding and multi-organ failure.

The victim’s mother has said that a group of five to seven members visited her house and abducted her daughter several times in the last eight months and raped her.

One accused Mirza Sarfaraz (30) has been arrested.

The victim’s relatives and members of the Dalit Sene staged a protest outside the hospital, blocking vehicular movement for an hour. They have demanded death penalty for the accused.

But Secular and Liberal media has mass-censored this news.
नीट-यूजी के री-एग्जाम का रिजल्ट जारी, 813 ने दिया था दोबारा पेपर

#neet_ug_retest_result_released

नीट यूजी री-एग्जाम का रिजल्ट जारी हो गया है। पेपर लीक को लेकर हुए हंगामे के बाद 23 जून को हुए नीट-यूजी का री-एग्जाम कराया गया था। नेशनल टेस्टिंग एजेंसी (NTA) ने आज नेशनल एलिजिबिलिटी कम एंट्रेंस टेस्ट, अंडरग्रेजुएट (NEET UG) 2024 रीटेस्ट का रिजल्ट घोषित कर दिया है। बता दें कि पेपर लीक और अनियमितताओं के कारण नीट-यूजी 2024 जांच के दायरे में है।

बता दें इस परीक्षा को 1563 अभ्यर्थियों के लिए 23 जून को आयोजित किया गया था। इस परीक्षा में केवल 813 कैंडिडेट्स ने ही भाग लिया था। जिनका परिणाम नेशनल टेस्टिंग एजेंसी ने आज जारी कर दिया है। छात्रों को एनटीए नीट स्कोर कार्ड 2024 डाउनलोड करने के लिए अपने लॉगिन क्रेडेंशियल जैसे आवेदन संख्या और जन्म तिथि की आवश्यकता होगी।

छात्रों को ‘समय की हानि’ के कारण नीट-यूजी परीक्षा में ग्रेस मार्क्स दिए गए थे, जिस पर सवाल खड़े हो गए और बाद में मामला सुप्रीम कोर्ट पहुंचा, जहां उसने ग्रेस मार्क्स के मामले को रद्द करते हुए इन छात्रों की दोबारा परीक्षा आयोजित करने का आदेश दिया था

बता दें कि इस वर्ष नीट यूजी परीक्षा का आयोजन 5 मई को समूचे देश में किया गया था। करीब 24 लाख कैंडिडेट्स इस परीक्षा में शामिल हुए थे। करीब 7 केंद्रों पर टाइम लॉस होने की वजह से 1563 बच्चों को ग्रेस मार्क्स दिए गए, जिससे बाद में कई समस्याएं खड़ी हो गईं और एक ही सेंटर के बहुत सारे टॉपर्स के अलावा कई स्टूडेंट्स ने टॉप किया। विवाद बढ़ने और अदालत तक पहुंचने पर यह तय किया गया कि इन 1563 बच्चों के लिए फिर से एग्जाम कराया जाएगा।

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Nothing gets done without drive and passion.
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संसद सत्र का छठा दिन आज, नीट पेपर लीक मामले में टकराव के आसार*
#parliament_session_2024
दो दिन के अवकाश के बाद आज से फिर लोकसभा सत्र शुरू हो रहा है। आज से शुरू हो रहे लोकसभा सत्र में फिर टकराव के आसार हैं। विपक्ष नीट के मुद्दे पर लगातार हंगामा कर रहा है। दोनों सदनों में आज फिर हंगामे के आसार हैं। नीट पेपर लीक विवाद के अलावा अग्निपथ और महंगाई जैसे कई मुद्दों पर तीखी बहस होने के पूरे आसार हैं। वहीं, विपक्षी दल, इंडिया गठबंधन, प्रवर्तन निदेशालय और केंद्रीय जांच ब्यूरो सहित केंद्रीय एजेंसियों के कथित दुरुपयोग को लेकर केंद्र सरकार के खिलाफ सोमवार, 1 जुलाई को संसद परिसर में प्रदर्शन करेगा। संसद में एक बार फिर हंगामा मच सकता है। इससे पहले संसद सत्र के पांचवें दिन शुक्रवार को दोनों सदनों में नीट मुद्दे पर जमकर हंगामा हुआ था। हंगामे के चलते लोकसभा में कार्यवाही 1 जुलाई तक स्थगित कर दी गई थी। लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने शुक्रवार को पहले नीट के मुद्दे पर चर्चा की मांग की थी। उन्होंने कहा था कि पहले पर चर्चा हो और प्रधानमंत्री मोदी भी इसमें भाग लें। वहीं, राज्यसभा में खरगे ने इस मुद्दा को उठाया था। राज्यसभा में पेपर लीक के मुद्दे पर जमकर हंगामा हुआ।खरगे वेल तक पहुंच गए थे। इस पर सभापति जगदीप धनखड़ ने नाराजगी जताई। धनखड़ ने कहा संसदीय इतिहास पर काला धब्बा है। राज्यसभा की कार्यवाही रुक-रुककर चलती रही। बाद में इसे भी 1 जुलाई तक स्थगित कर दिया गया था। संसद के दोनों सदनों में विपक्ष राष्ट्रपति के अभिभाषण पर लाए धन्यवाद प्रस्ताव पर चर्चा का संकट है। वर्तमान सत्र में अब महज तीन कार्यदिवस शेष बचे हैं। विपक्ष प्रस्ताव पर चर्चा से पहले नीट मामले में चर्चा पर अड़ा हुआ है। सरकार का कहना है कि धन्यवाद प्रस्ताव पर चर्चा से पहले किसी तरह की चर्चा की परंपरा नहीं है। गौरतलब है कि पीएम को मंगलवार को लोकसभा और बुधवार को राज्यसभा में चर्चा का जवाब देना है।
Thought of the day
बच्चे वही सीखते हैं जो माता-पिता सिखाते हैं।।

अब फिर नए विवाद में फंसे कथावाचक पंडित प्रदीप मिश्रा, ताप्ती पर की गई टिप्पणी से गुस्साए लोग, जानिए पूरा मामला

 प्रसिद्ध कथा वाचक पंडित प्रदीप मिश्रा की मुश्किलें कम होने का नाम नहीं ले रही है हाल ही में उन्होंने बरसाना जाकर नाक रगड़ कर माफी मांगी थी इसका वीडियो सोशल मीडिया पर खूब वायरल हो रहा है लेकिन इस बीच अप पंडित प्रदीप मिश्रा एक और नए विवाद में फंसते हुए नजर आ रहे हैं।

दरअसल, पिछले दिनों राधा रानी को लेकर दिए गए एक विवादित बयान ने प्रदीप मिश्रा को काफी ज्यादा चर्चाओं में ला दिया है। हमेशा अपनी कथा और उपायों के लिए चर्चाओं में रहने वाले पंडित प्रदीप मिश्रा लंबे समय से विवादों का सामना कर रहे हैं, हालांकि उन्होंने संत समाज के नाराज होने के बाद बरसाना जाकर राधा रानी के सामने माफी मांग ली है।

इसके बाद माना जा रहा था कि पंडित प्रदीप मिश्रा अब विवादों से दूर हो चुके हैं, लेकिन अब उनका एक और वीडियो सोशल मीडिया पर काफी वायरल हो रहा है, जिसमें उन्होंने ताप्ती को लेकर कुछ ऐसी टिप्पणी कर दी जिसकी वजह से अब एमपी के आदिवासी बाहुल्य बैतूल और मुलताई के लोग उनसे नाराज हो गए हैं।

इतना ही नहीं अब गुस्सा आए लोग पंडित प्रदीप मिश्रा से मुलताई आकर माफी मांगने की मांग कर रहे हैं। दरअसल कथा के दौरान पंडित प्रदीप मिश्रा ने कहा था कि ताप्ती देवी कृष्ण पर मोहित हो गईं थीं। इससे यमुना उनपर कुपित हो गईं और उन्होंने मां ताप्ती को शाप दे दिया था। 

ताप्ती भक्तों का कहना है कि पंडित प्रदीप मिश्रा का यह कथन शास्त्र सम्मत नहीं है। मां ताप्ती मंदिर के प्रमुख पुजारी सौरभ जोशी का कहना है कि पंडित प्रदीप मिश्रा ने बिल्कुल निराधार बात कही है। इसके लिए उन्हें ताप्ती भक्तोें से माफी मांगनी चाहिए। बता दें कि, बैतूल में पंडित प्रदीप मिश्रा की शिव पुराण कथा आयोजित की गई थी। बताया जा रहा है कि उसी दौरान कथा में पंडित प्रदीप मिश्रा ने माता ताप्ती नदी के बारे में विवादित टिप्पणी की थी।

विराट-रोहित के बाद इस दिग्गज ने किया संन्यास का ऐलान, करोड़ों फैंस को लगा तीसरा बड़ा झटका

T20 वर्ल्ड कप के फाइनल मुकाबले में भारत ने साउथ अफ्रीका को 7 रन से हराकर 17 साल बाद दूसरी बार वर्ल्ड कप पर कब्जा जमाया। कप्तान रोहित शर्मा की अगवाई में भारतीय टीम ने पूरे टूर्नामेंट में काफी शानदार प्रदर्शन किया और भारतीय टीम को एक और T20 वर्ल्ड कप जीतवाया।

जहां एक और T20 वर्ल्ड कप जीतने की खुशी में पूरे देश में जश्न का माहौल है, तो वहीं दूसरी ओर टीम इंडिया के खिलाडी देश के करोड़ों फैंस को झटका पर झटका देते हुए नजर आ रहे हैं। बता दें कि, T20 वर्ल्ड कप जीतने के तुरंत बाद भारतीय टीम के कप्तान रोहित शर्मा और रन मशीन विराट कोहली ने T20 इंटरनेशनल से संन्यास का ऐलान कर दिया था।

इसके बाद अब एक और बड़ी खबर सामने आ रही है। भारतीय टीम में ऑलराउंडर की भूमिका निभाने वाले रवींद्र जडेजा ने भी संन्यास का ऐलान कर दिया है। उन्होंने सोशल मीडिया इंस्टाग्राम पर पोस्ट साझा करते हुए इस बात की जानकारी दी है। यह खबर सामने आने के बाद फैंस को तगड़ा झटका लगा है।

असम में बाढ़ से हालात बिगड़े, ब्रह्मपुत्र नदी ने खतरे के निशान को किया पार

डेस्क : असम में पिछले कुछ दिनों से सुधर रही बाढ़ के हालात एक बार फिर बिगड़ गए हैं। डिब्रुगढ़ में ब्रह्मपुत्र नदी खतरे के निशान को पार गई है। वहीं राज्य में बाढ़ प्रभावितों की संख्या में इजाफा हुआ है। असम राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (एएसडीएमए) ने एक बुलेटिन में कहा कि बाढ़ के कारण राज्य के सात जिलों में 1,33,945 लोग प्रभावित हुए हैं। 

किसी के हताहत होने की कोई सूचना नहीं

वहीं, शुक्रवार को पांच जिलों में प्रभावित लोगों की संख्या घटकर 1,07,385 रह गई थी। असम में बाढ़ के कारण फिलहाल किसी के हताहत होने की कोई सूचना नहीं है। साथ ही इस साल बाढ़, तूफान और भूस्खलन की चपेट में आ जाने से 42 लोगों की मौत हुई है। 

कछार जिला बाढ़ से सबसे ज्यादा प्रभावित 

बता दें कि राज्य का कछार जिला बाढ़ से सबसे ज्यादा प्रभावित हुआ है। यहां बाढ़ से 67,030 लोग प्रभावित हुए हैं। इसके बाद करीमगंज जिले में 27,235 लोग व धेमाजी में 25,947 लोग प्राकृतिक आपदा से संकट का सामना कर रहे हैं। बाढ़ के कारण कामरूप, करीमगंज, धेमाजी, डिब्रूगढ़, कछार, तिनसुकिया और लखीमपुर जिले जलमग्न हैं। 

66 राहत शिविरों में लोगों ने ली शरण

राज्य के 8,484 लोगों ने 66 राहत शिविरों में शरण ली है, जबकि पांच अन्य राहत वितरण केंद्र भी चालू हैं। धेमाजी जिले में लगभग 100 लोगों को नाव के जरिये बचाया गया है। एएसडीएमए बुलेटिन में कहा गया है कि विभिन्न भागों में सड़कें, पुल, तटबंध और पुलिया जैसे