नतमस्तक राजनीतिअ ने बाबा साहब का किया स्मरण, कृतज्ञ राप्ट्र ने दी श्रद्धांजलि
बिहार:  राजनीतिक दलों ने रविवार को 133वीं जयंती पर संविधान निर्माता बाबा साहेब डा. भीमराव अम्बेडकर का स्मरण किया राजकीय समारोह में राज्यपाल राजेन्द्र विश्वनाथ आर्लेकर ने श्रद्धांजलि दी. पटना उच्च न्यायालय से पश्चिम में अवस्थित आंबेडकर की प्रतिमा पर उन्होंने माल्यार्पण किया.

  
   सूचना एवं जनसंपर्क विभाग के कलाकारों द्वारा आरती-पूजन व भजन-गीत आदि प्रस्तूत किए गए. समारोह में बिहार गीत की भी प्रस्तुति हुई.

   
   भाजपा कार्यालय में अनुसूचित जाति मोर्चा की प्रदेश इकाई, द्वारा आयोजित कार्यक्रम में अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री जनक राम मुख्य अतिथि रहे.


    
   उन्होंने कहा कि अंबेडकर का संघर्षपूर्ण जीवन व अनुसूचित जाति के लिए किए गए कार्य हम लोगों के लिए प्रेरणा-स्त्रोत हैं.

  
      गन्ना उद्दोग मंत्री कृष्णनंद पासवान ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी अब अंबेडकर के सपने को पूरा कर रहे. अनुसूचित, जाति मोर्चा के प्रभारी प्रवीण दास तांती, मनोज चौधरी, मिलन रजक, आदि ने श्रद्धांजलि दी.

    
       जदयू के प्रदेश कार्यालय में आंबेडकर की तस्वीर पर पुष्पांजलि अर्पित कर उन्हें श्रद्धांजलि दी गई . पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष उमेश सिंह कुशवाहा ने कहा कि बाबा साहेब वंचित वर्ग के लिए आजीवन संघर्षरत रहे. वे शोषितों व वंचितों के मसीहा थे. विधान पार्षद संजय कुमार सिंह आदि ने श्रद्धांजलि ने उन्हें श्रद्धांजलि दी.

      
       कांग्रेस के प्रदेश मुख्यालय(सदाकत आश्रम) में जयंती समारोह की अध्यक्षता पूर्व करते हुए पूर्व मंत्री संजीव प्रसाद टोनी ने कहा कि डा. अंबेडकर राष्ट्र की प्रेरणा स्त्रोत के स्त्रोत रहे हैं.

      
      कांग्रेस का सदस्य नहीं होने के बावजूद पंडित जवाहर लाल नेहरु ने अपनी पहली सरकार में उन्हें विधि मंत्री बनाया.

      
     राजद के कार्यालय में चित्र पर माल्यार्पण कर अंबेडकर को श्रद्धांजलि दी गई. पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष जगदानंद सिंह ने कहा कि अंबेडकर का संघर्षपूर्ण जीवन और सफलता की कहानी हर किसी के लिए प्रेरणादायी है.

  
   संविधान निर्माता के साथ ही अनुसूचित जाति के लिए उन्होंने कदम उठाए.
बिहार का अगला भविष्य चिराग पासवान हैं, जीतनराममांझी ने लोकसभा चुनाव कै बीच कर दिया बड़ा एलान.
बिहार: लोकसभा चुनाव 2024 के बीच बिहार के पूर्व सीएम जीतनराममांझी ने लोजपा रामविलास के मुखिया चिराग पासवान को लेकर बड़ा एलान कर दिया हैं. मांझी ने चिराग को अगला भविष्य बताते हुए इशारों ही इशारों में सीएम पद पा उम्मीदवार बता दिया. इससे सूबे का सियासी पारा गर्मा गया है.गया लोकसभा सीट से एनडीए के प्रत्याशी HAM सुप्रीमो मांझी के समर्थन में चिराग ने शनिवार को जनसभा की.

   
      लोजपा रामविलास के राष्ट्रीय अध्यज्ञ चिराग पासवान ने गया जिले के अलग-अलग क्षेत्रों में शुक्रवार को मांझी के समर्थन में चुनावी जनसभाओं को संबोधित किया. चाकंद की रैली में मंच पर जीतनराममांझी भी मौजूद रहे. चिराग के संबोधन से पहले मांझी ने कहा कि बिहार का अगला भविष्य चिराग पासवान हैं. केन्द्र में जाकर हमलोग ऐसी परिस्थिति बनाएंगें कि बिहार का अगला भविष्य चिराग पासवान हैं मांझी ने लोगों से जातीय उन्माद में न आकर बिहार के भविष्य को देखकर लोकसभा चुनाव में वोट करने की अपील की.

       
     जीतनराममांझी ने चिराग पासवान को इशारों में अगला सीएम कैंडिडेट बता दिया. सियासी गलियारों में चर्चाओं का दौर शुरू हो गया कि क्या 2025 के विधानसभा चुनाव में नीतीश के बजाय चिराग एनडीए का चेहरा होंगें? मांझी इसको पहले अपने बेटे को भी सीएम कैंडिडेट बता चुके हैं. मांझी ने पिछले साल अपने एक बयान में तेजस्वी यादव पर तंज कसते हुए कहा था कि उनका बेटा संतोष सुमन ज्यादा शिक्षित और योग्य उम्मीदवार हैं. वे सीएम कैंडिडेट को पढ़ा भी सकते हैं.
मां दुर्गा से सीखें जीवन जीने की सीख, लाईफ में मिलेगी सफलता
बिहार: महिलाएं अगर लाइफ में सक्सेस पाना चाहती हैं. फिर भी चाहे किसी भी फील्ड में हों उन्हें मां दुर्गा के रूप में सीख लेनी चाहिए. जिसकी मदद से वो केवल कैरियर ही नहीं बल्कि हर काम में सफलता पा सकती हैं. देवी दुर्गा को शक्ति और बुद्धि का प्रतीक माना जाता हैं. उनके रूप से कई बातों को समझकर लाईफ में सफलता पाने की सीख ली जा सकती हैं.

    
    देवी दुर्गा के रूप को देखा जाए तो उसके हर हाथ में एक हथियार हैं. जो ये बताने के लिए है कि उनकी शक्ति अपार हैं. शक्ति के रूप में उन्हें पूजा जाता हैं. महिलाओं को मां दुर्गा के रूप में सीख लेना चाहिए. और अपने अंदर की शक्ति को जरूर पहचानना चाहिए. जिसकी मदद से हर काम को करने के लिए आत्मविश्वास भी मिलता हैं और इस काम में सफलता भी.

 
   देवी दुर्गा राक्षस महिषासुर को हराकर विजय पाती हैं. उनकी स्मृति से सीख ली जा सकती हैं कि जीवन में आ रही चुनौतियों से बचकर भागने की बजाय उसका डटकर सामना करना चाहिए. तभी सफलता मिलती हैं.
   
     
देवी दुर्गा के रूप में सीख लेनी चाहिए कि महिलाओं को अपने पुरूषत्व और महिलाओं को अपने पुरूषत्व और महिलाओं के गुणों में वैलेंस बनाकर रखना चाहिए. वो अपने रूप और सौंदर्य के साथ ही शक्ति का प्रतीक हैं. महिला को अपने अंदर दोनों गुणों के होने पर उसे वैलेंस बनाकर चलने की सीख देती हैं.

    
इसी दुर्गा का रूप अपने दोनों बेटों भगवान गणेश और कार्तिकेय के सरल बेहद आत्मीय हैं. इसके सीख मिलती हैं कि महिला को अपने जीवन में रिश्तों को पूरे भाव के साथ निभाना चाहिए. मातृत्व भाव के साथ रिश्तों की सुरक्षा होनी चाहिए. चुनौतियों होने पर लक्ष्य पर टिके रहें. स्वभाव में स्थिरता और दृढ़ता ही देवी दुर्गा की विशेषता हैं. जिसे महिलाओं को जरूर सीखना चाहिए.
बिहार के 70 हजार स्कूलों के नाम बदलेंगें, महापुरूषों के नाम पर रखने की तैयारी
बिहार: बिहार के करीब 70 हजार सरकारी स्कूलों के नाम बदले जाएंगें. इसमें नवसृजित प्राथमिक विद्यालय और उत्क्रमित मध्य विद्यालय शामिल हैं. एक स्कूलों का नाम नवसृजित और उत्क्रमित के बदले राजकीय या देश एवं राजा के देशभक्त महापुरूषों के नाम पर रखें जाएंगें. इसको लेकर शिक्षा विभाग की ओर से तैयारी की जा रही हैं. सबकुछ ठीक रहा तो जुलाई के इसकी प्रक्रिया शुरू कर दी जाएगी. इसके बाद स्कूलों के नाम की ई-शिक्षा कोष और यूं डायस पोर्टल पर एंट्री कर दी जाएगी. स्कूल उसी नये नाम के साथ जाना जाने लगेगा. शिक्षा विभाग भागलपुर समेत प्रदेश के सभी 38 जिलों से नवसृजित तथा उत्क्रमित विद्यालयों की जानकारी लेने में जूट गया हैं.


  शिक्षा को बढ़ावा देने और आम लोगों तक शिक्षा पहुंचाने के उद्देश्य से ग्रामीण इलाकों में नवसृजित प्राथमिक विद्यालय खोले गए थे.


  इसके तहत बीते दो दशक में प्रदेश में बड़े पैमाने पर नवसृजित विद्यालय खोले जाएंगें. इसके तहत बीते दो दशक में प्रदेश में बड़े पैमाने पर नवसृजित विद्यालय खोलें गए. हालांकि, जमीन और भवन के अभाव में इनमें से अधिकतर स्कूल नजदीकी विद्यालय में टैग कर दिए गए, जबकि हजारों विद्यालय कहीं पेड़ की छांव में तो किसी के घर या उनके दरवाजे पर संचालित किए जा रहे थे
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   इसके अलावा पिछले पांच से सात के दौरान जिलों में खोले गए ऐसे नवसृजित एवं उत्क्रमित विद्यालयों का नाम बदला जाना हैं. जिन्हें जमीन और भवन दोनों उपलब्ध हो चुके हैं. विद्यालय के नाम बदले जाने का यह काम राज्य स्तर पर किया जाएगा.
वैशाली में मुन्ना शुक्ला तीसरी बार चुनावी मेदान में, जेडीयू से हारे; अब आरजेडी ने टिकट दिया.
वैशाली:  बिहार की वैशाली लोकसभा सीट पर लालू एवं तेजस्वी यादव की पार्टी आरजेडी ने पूर्व विधायक विजय कुमार शुक्ला उर्फ मुन्ना शुक्ला को प्रत्याशी बनाया हैं. मंगलवार देर शाम जारी कैंडिडेट लिस्ट में इसकी घोषणा की गई. महागठबंधन के लिए वैशाली सीट हॉट बनी हुई हैं. एनडीए पहले ही प्रत्याशी वीणा देवी चुनाव लड़ रही हैं. मौजूदा सांसद वीणा देवी और बाहुबली मुन्ना शुक्ला के बीच वैशाली में सीधी टक्कर होती दिख रही हैं. मुन्ना शुक्ला यहां से दो बार चुनाव लड़ चुके हैं. लेकिन कभी जीत नहीं मिली. एक बार जेडीयू के टिकट पर भी मैदान में उतरे. अब वे तीसरी बार आरजेडी के सिंबल पर वैशाली से कैंडिडेट हैं.


     कई दिनों से वैशाली सीट पर प्रत्याशी को लेकर आरजेडी में पेंच हुआ या. वैशाली सीट पर पूर्व विधायक मुन्ना शुक्ला की लगातार दावेदारी बनी हुई थी. टिकट मिलने पर उनके समर्थकों में उल्लास का माहौल हो गया. लालगंज से मुन्ना शुक्ला तीन बार लगातार विधायक रह चुके हैं. पहली बार 2000 में लालगंज से निर्दलीय चुनाव जीतकर विधानसभा पहुंचे थे. इसके बाद 2005 की फरवरी में लोजपा के टिकट पर चुनाव लड़कर जीत हासिल की. 2005 के नवंबर में हुए विस चुनाव में मुन्ना शुक्ला जेडीयू से चुनाव लड़ें. इसमें भी उन्हें जीत हासिल हुई.

     
    इसके बाद बृज बिहारी हत्याकांड में वे जेल चले गए. फिर 2010 में लालगंज से मुन्ना शुक्ला की पत्नी अन्नु शुक्ला जेडीयू के टिकट विधायक बनी. 2015 में मुन्ना शुक्ला ने जेडीयू के टिकट पर चुनाव लड़ा था. जिसमें लोजपा के राजकुमार साह ने उन्हें हरा दिया. 2020 के विधानसभा चुनाव में यही सीट एनडीए के खाते में चली गई. जिसके बाद मुन्ना शुक्ला ने निर्दलीय चुनाव लड़ा, जिसमें वे सफल नहीं हुए.

   
     मुन्ना शुक्ला पहली 2004 में वैशाली लोकसभा सीट से निर्दलीय चुनाव लड़ें थे, पर हार गये. इसके बाद जेडीयू ने उन्हें 2009 में लोस का टिकट थमाया. हालांकि इसमें भी हार का सामना करना पड़ा. 2014 के लोकसभा चुनाव में  उनकी जगह पत्नी अन्नु शुक्ला ने निर्दलीय चुनाव लड़ा. इसमें अन्नु शुक्ला को हार का सामना करना पड़ा. 2024 के चुनाव में आरजेडी ने मुन्ना शुक्ला पर भरोसा जताया हैं. इससे यह सीट काफी दिलचस्प हो गई हैं.








आरजेडी के 22 कैंडिडेट की लिस्ट जारी, बक्सर से सुधाकर सिंह, हाजीपुर से चिराग के खिलाफ शिवचंद्र राम
बिहार: लालू एवं तेजस्वी यादव की पार्टी आरजेडी से बिहार की 22 लोकसभा सीटों पर कैंडिडेट की लिस्ट जारी कर दी हैं. पार्टी ने बक्सर से पूर्व कृषि मंत्री एवं आरजेडी प्रदेश अध्यक्ष जगदानंद सिंह के बेटे सुधाकर सिंह को टिकट दिया हैं. दरभंगा से ललित यादव, सुपौल से चंद्रहास चौपाल, वैशाली से मुन्ना शुक्ला, अररिया से शाहनवाज आलम और मधुबनी से अली अशरफ फातमी को प्रत्याशी बनाया गया हैं. हाजीपुर लोकसभा सीट से लोजपा रामविलास के मुखिया चिराग पासवान के खिलाफ पूर्व मंत्री शिवचंद्र राम आरजेडी के टिकट पर चुनाव लड़ेंगें. आरजेडी ने शिवहर से पूर्व सांसद आनंद मोहन की पत्नी लवली आनंद के खिलाफ पार्टी ने रितु जायसवाल को मैदान में उतारा हैं. इस लिस्ट में लालू यादव की दोनों बेटियों का भी नाम हैं, रोहिणी आचार्य को सारण और मीसा भारती को पाटलिपुत्र से उम्मीदवार बनाया गया हैं, हालांकि उन्हें सिंबल पहले ही दे दिया गया था.


      पिछले दिनों महागठबंधन में हुए सीट बंटवारे के तहत आरजेडी के खाते में 40 में से 26 सीटें आई थी. इनमें से पार्टी ने अपने कोटे से तीन सीट मुकेश सहनी की वीआईपी को दे दी.यानी कि अब पार्टी कुल 23 सीटों पर चुनाव लड़ रही हैं. इनमें से सीवान को छोड़कर अन्य 22 सीटों पर चुनाव लड़ रही हैं. इनमें से सीवान को छोड़कर अन्य 22 सीटों पर प्रत्याशियों की अधिकारिक घोषणा हो चुकी हैं. सीवान पर अब भी सस्पेंस बना हुआ हैं. वहीं, कई सीटों पर पार्टी ने सीट बंटवारे से पहले सिंबल बांट दिये थे, जिन्होंने नामांकण भी दाखिल कर लिए हैं


    जहानाबाद से सुरेंद्र प्रसाद को टिकट दिया गया हैं. मुंगेर से अनीता देवी महतो और उजियारपुर से पूर्व मंत्री आलोक मेहता को प्रत्याशी बनाया गया हैं. मुंगेर से अनीता देवी महतो आरजेडी के टिकट पर चुनाव लड़ेंगी. वहीं, जेडीयू छोड़कर आरजेडी में अली अशरफ फातमी को मधुबनी से उम्मीदवार बनाया गया हैं. वाल्मीकि नगर से दीपक यादव तो मधेपुरा से कुमार चंद्र दीप को टिकट दिया हैं.
चैत्र नवरात्र के पहले दिन ऐसे करें पूजा, जानें शुभ मुहुर्त, योग, और आरती और मंत्र
वैशाली: हिंदु प़चांग के अनुसार, आज यानी 09 अप्रैल से चैत्र नवरात्र की शुरूआत हो चुकी हैं. चैत्र नवरात्र में मां दुर्गा की विशेष पूजा करने का विधान हैं.  साथ ही जीवन में सुख-शांति के लिए व्रत किया जाता हैं. नवरात्र की पूजा में सर्वप्रथम कलश स्थापना की जाती हैं.  नवरात्र की पूजा में सर्वप्रथम कलश स्थापना की जाती हैं और फिर मां दुर्गा के प्रथम स्वरुप मां शैलपुत्री की विशेष पूजा की जाती हैं और फिर मां दुर्गा के प्रथम स्वरूप मां शैलपुत्री की विशेष पूजा की जाती हैं और फिर मां दुर्गा के प्रथम स्वरूप मां शैलपुत्री की पूजा विधि, भोग, मंत्र और आरती.

     
       चैत्र माह के शुक्ल पक्ष की प्रतिपदा तिथि की शुरूआत 08 अप्रैल को रात 11 बजकर 50 मिनट से होगी और इसका समापन 09 अप्रैल को रात 08 बजकर 30 मिनट पर होगा. ऐसे में 09 से चैत्र नवरात्र की शुरूआत होगी. इस दिन घटस्थापना का शुभ मुहुर्त सुबह 06 बजकर 02 मिनट से लेकर 10 बजकर 57 मिनट से लेकर दोपहर 12 बजकर 48 मिनट तक हैं. इन दो शुभ मुहुर्त ने आप घटस्थापना कर सकते हैं.

         
    चैत्र नवरात्र के दिन ब्रह्म मुहुर्त में उठकर स्नान करें.

  इसके बाद मंदिर की सफाई करें

    मां दुर्गा की मूर्ति या तस्वीर स्थापित करें.

      
   
     अब मां दुर्गा का सोलह श्रृंगार करें और फूल माला अर्पित करें

    इसके बाद एक कलश लें और उसे आम के पत्तों से सजाएं, कलश के चारों तरफ लाल पवित्र कलावा बांधे, फिर उस कलश पर नारियल स्थापित करें.

      
     अब दीपक जलाकर आरती करे और सच्चे मन से दुर्गा सप्तशती का पाठ करें.
   इसके अलावा मां शैलपुत्री के मंत्रों का भी जाप करें.
    मां दुर्गा को फल और मिठाई समेत आदि चीजों का भोग लगाएं.

   
   अंत में लोगों में प्रसाद का वितरण करें और खुद भी ग्रहण करें.
पीएम मोदी की रैली मे फिसल गई नीतीश कुमार की जुबान, RJD ने कस दिया तंज
बिहार: नवादा में प्रधानमंत्री मोदी की रैली के दौरान संबोधित करते हुए बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की जुबान फिसल गई.उन्होंने कहा कि हमको पूरी उम्मीद हैं कि 4 हजार से ज्यादा एमपी पक्ष में रहेंगें. बता दें के नवादा में लोकसभा चुनाव के पहले चरण में मतदान होने वाला हैं. नीतीश कुमार का यह वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा हैं.

  
   जनता दल यूनाईटेड चीफ नीतीश कुमार जब मंच पर बोल रहे थें तब ऐसा लगा कि वह चार लाख बोलना चाहते हैं. इसके बाद उन्होंनें सांसदों की संख्या चार हजार बता दी. बता दें कि भाजपा ने इस बार, 400, पार का नारा दिया हैं. इसी को लेकर नीतीश कुमार बोल रहे थे. बता दें कि आरजेडी से नाता तोड़कर नीतीश कुमार ने भाजपा के साथ बिहार में सरकार बनाई हैं. और लोकसभा के चुनाव में वह एनडीए के साथ मिलकर उतरे हैं.

    
    नीतीश कुमार के इस वीडियो पर आरजेडी ने तंज कसा और कहा, भाजपा नेताओं के चेहरों पर हार साफ देखी जा सकती हैं. क्योंकि एनडीए गठबंधन को पता ही नहीं हैं कि देश में कितने सांसद हैं. सच्ची जनता से वादे करके पलट जाने वालों नवादा की जनता खदेड़ना चाहती हैं. कहां हैं बिहार का विशेष पैकेज, कहां हैं बिहार को विशेष राज्य का दर्जा.

    
  वही आरजेडी नेता तेजस्वी यादव ने कहा कि रैली के दौरान नीतीश कुमार पीएम मोदी के पैर छू रहे थे.
लोकसभा चुनाव 2024: मायावती की बसपा ने बिहार की पांच और सीटों पर उतारे प्रत्याशी, देखें किन्हें मिला टिकट.
बिहार: लोकसभा चुनाव में 2024 में मायावती की बहुजन समाज पार्टी(बसपा) ने बिहार की पांच और सीटों पर अपने कैंडिडेट की घोषणा कर दी हैं. बसपा ने किशनगंज, कटिहार, पूर्णिया और बांका में लोकसभा प्रत्याशि उतारे हैं. बसपा ने दूसरे चरण के  तहत किशनगंज, कटिहार, पूर्णिया और बांका में लोकसभा प्रत्याशी उतारे हैं. बसपा ने किशनगंज से बाबुल आलम भी उम्मीदवार बनाया हैं. कटिहार से गोपाल महतो को टिकट दिया गया हैं. पूर्णिया से अरिण दास बसपा के टिकट पर चुनाव लड़ेंगें. भागलपुर से पुनम सिंह कुशवाहा को कैंडिडेंट बनाया गया हैं.

  
   बसपा ने इस बार किसी के साथ गठबंधन में चुनाव लड़ने का फैसला नहीं लिया हैं. मायावती की पार्टी बिहार की सभी 40 सीटों पर प्रत्याशी उतारने वाली हैं. बीते 27 मार्च को बसपा ने बिहार की चार लोकसभा सीटों पर अपने प्रत्याशियों की घोषणा की थी. इनमें नवादा, औरंगाबाद, गया और जमुई सीट शामिल हैं. इन चारों पर बसपा ने इस बार किसी के साथ गठबंधन में चुनाव लड़ने का फैसला नहीं लिया हैं. मायावती की पार्टी बिहार की सभी 40 सीटों पर प्रत्याशी उतारने वाली हैं. बीते 27 मार्च को बसपा ने बिहार की चार लोकसभा सीटों पर अपने प्रत्याशियों की घोषणा की थी. इसमें नवादा, औरंगाबाद, गया और जमुई सीट शामिल हैं.इन चारों सीटों पर पहले चरण में  19 अप्रैल को वोटिंग होनी हैं.


        नवादा से रंजीत कुमार, औदंगाबाद से सुमेश कुमार, गया से सुषमा कुमारी और जमुई से सकलदेव दास बसपा के टिकट पर चुनावी मैदान में हैं. इन चारों प्रत्याशियों की नामांकन की प्रक्रिया पुरी हो चुकी हैं. पिछले चुनाव में भी बसपा ने सभी सीटों पर इलेक्शन लड़ा था. हालांकि मायावती की पार्टी बिहार में कुछ खास नहीं कर पाई.
बिहार में भीषण गर्मी पर आपदा प्रबंधन का अलर्ट; बंद हो सकते हैं स्कूल, सभी डीएम को भेजा पत्र, दि ये निर्देश.
बिहार: राज्य में भीषण गर्मी और लू की स्थिति को देखते हुए स्कूलों के संचालन के संबंध में आपदा प्रबंधन विभाग ने निर्देश जारी किया हैं. भीषण गर्मी और लू से बच्चों को बचाने के लिए स्कूल सुबह की पाली में संचालित करने या फिर गर्मी की निर्धारित समय के पूर्व घोषित करने के लिए कहा गया हैं. गर्मी की स्थति को देखते हुए स्कूलों को अल्प अवधि के लिए बंद किया जा सकता हैं. इस लिए जिलाधिकारियों की समीक्षा का निर्णय लेना चाहिए.

    
    भीषण गर्मी और लू से बचने के उपाय से संबंधित कारवार्ई करने के लिए आपदा प्रबंधन विभाग के अपर मुख्य सचिव प्रत्यय अमृत ने शिक्षा, स्वास्थ्य सहित सभी स्कूलों और परीक्षा केन्द्रों पर पेयजल का इंतजाम सुनिश्चित करना होगा.

   
   ओआरएस की व्यवस्था भी करने को कहा हैं.


      राज्य में भीषण गर्मी और तपिश को देखते हुए आपदा प्रबंधन विभाग ने अलर्ट जारी किया गया हैं. राज्य के लोगों और पशु-पक्षियों को बचाने की जिम्मेदारी स्वास्थ्य शिक्षा, पशु व मत्स्य संसाधन विभाग, सहित 15 विभागों को दी गई हैं. विभागों को बस हैं कि वे अपने-अपने स्तर से संभावित जिलों के आवश्यक कार्रवाई करने को कहा गया हैं. आपदा प्रबंधन विभाग के अपर मुख्य सचिव प्रत्यय अमृत ने विभागों को आवश्यक कार्रवाई करने को कहा गया हैं. आपदा प्रबंधन विभाग के अपर मुख्य सचिव प्रत्यय अमृत ने विभागों और जिलों को पत्र भेजा हैं. जिलास्तर पर जागरूकता कार्यक्रम के लिए कहा हैं. साथ ही हीट वेब एक्शन प्लान के तहत संबंधित कार्यालय व निकायों को लू से बचाव के लिए आवश्यक निर्देश दिए हैं.


   नगर विकास- शहरी क्षेत्रों में सार्वजनिक पियाऊं की व्यवस्था. आश्रय स्थलों में पेयजल व स्लम के लोगों के लिए आवश्यक दवाओं की उपलब्धता.


    स्वास्थ्य: सभी अस्पतालों में लू से प्रभावितों के इलाज की व्यवस्था. सभी स्वास्थ्य केन्द्रों में ओआर एस पैकेट, जीवन रक्षक दवाओं की उपलब्धता. आईसोलेशन वार्ड व गंभीर रूप से बीमार लोगों को विशेष इंतजाम और चलंत चिकित्सा दल की व्यवस्था करने को कहा गया हैं.


     पीएचईडी- खराब चापाकलों को युद्धस्तर पर मरम्मत करने को कहा गया हैं. पेयजल संकट वाले इलाकों में टैंकरों की व्यवस्था करने और भू-गर्भ जलस्तर की निगरानी करने को कहा गया हैं.


   शिक्षा विभाग- विद्यालयों को सुबह की पाली में संचालित करने या गर्मी की छुट्टी पहले करने के लिए कहा.


   समाज कल्याण- आंगनबाड़ी केन्द्रों पर पेयजल की व्यवस्था, नवजात शिशु, बच्चों व महिलाएं के लिए विशेष चिकित्सा सुविधा का इंतजाम करने को कहा गया हैं.


   पशुपालन: सरकारी ट्यूबवेल या अन्य स्थानों पर गड्ढा खोदकर पशुओं के पानी का इंतजाम. पशुओं के लिए चिकित्सा दल बनाने के निर्देश दिये गए हैं.


    पंचायती राज- लू के दौरान क्या करें, क्या न करें इसका प्रचार- प्रसार. गांवों में पेयजल की व्यवस्था.