औरंगाबाद में बाइकर्स ने बोला उत्पाद पुलिस पर हमला, शराबी को छुड़ाकर हुए फरार

औरंगाबाद()। औरंगाबाद के नबीनगर प्रखंड में टंडवा थाना क्षेत्र के सिमरी गांव के पास पिछुलिया स्थित चेक पोस्ट पर गुरूवार को देर रात ग्रामीणों ने उत्पाद विभाग की टीम पर हमला बोलकर एक शराबी को जबरन छुड़ा लिया। हमले में एक पुलिसकर्मी गंभीर रूप से घायल हो गया। घायल पुलिसकर्मी का औरंगाबाद सदर अस्पताल में इलाज किया गया। इलाज के बाद घायल की स्थिति सामान्य है।

बताया जाता है कि पिछुलिया चेक पोस्ट पर उत्पाद विभाग की पुलिस ब्रेथ एनालाइजर मशीन से झारखंड की ओर से आने वाले लोगो की जांच कर रही थी। जांच के दौरान ही एक व्यक्ति के शराब पिए होने की पुष्टि हो गयी। शराब पीने की पुष्टि होते ही उत्पाद टीम शराबी को पकड़कर पुलिस वाहन में बैठाने ले जाने लगी।

इसी दौरान शराबी के साथ रहे बाइक सवार युवकों ने शराबी को पुलिस वैन में बैठाने ले जा रहे पुलिसकर्मी पर हमला बोल दिया और शराबी को उसके कब्जें से छुड़ा लिया। पुलिसकर्मी के कब्जें से शराबी को छुड़ाने के बाद साथ रहे युवक उसे ले भागे। हमले में पुलिसकर्मी गंभीर रूप से घायल हो गया।

पुलिसकर्मी के घायल होने के बाद उसके साथी पुलिसकर्मियों ने उसे इलाज के लिए कुटुम्बा रेफरल अस्पताल लाया, जहां डॉक्टरों ने प्रारंभिक उपचार के बाद बेहतर इलाज के लिए औरंगाबाद सदर अस्पताल रेफर कर दिया। इसके बाद घायल पुलिसकर्मी का सदर अस्पताल में इलाज किया गया। इलाज के बाद घायल की स्थिति सामान्य है।

घायल पुलिसकर्मी कपिलदेव यादव(58) देव थाना क्षेत्र के अदरी गांव का निवासी है। मिली जानकारी के मुताबिक गुरूवार को देर रात उत्पाद विभाग की टीम पिछुलिया चेक पोस्ट पर वाहनों की जांच कर रही थी। इसी दौरान 4-5 की संख्या में बाइक सवार कुछ युवक आए।

टीम ने ब्रेथ एनालाईजर से उनकी जांच की।इसी दौरान एक युवक जांच में शराब के नशे में धुत पाया गया। पुलिस ने जब ब्रेथ एनालाजर से जांच की तो उसके शराब पिए होने की पुष्टि हो गई। शराब पीने की पुष्टि के बाद एक पुलिसकर्मी उसे उत्पाद विभाग के जीप में बैठाने ले जा रहा था। इसी दौरान शराबी युवक के साथ रहे बाइक सवार युवकों ने पुलिस पर पर हमला बोलकर उसे छुड़ा लिया और पलक झपकते ही उसे लेकर बाइक से फरार हो गए।

मामले में उत्पाद पुलिस ने सरकारी काम में बाधा डालने, पुलिस पर हमला बोलने एवं शराबबंदी कानून के उल्लंघन के आरोप में प्राथमिकी दर्ज की। प्राथमिकी में शराबी और उसके सहयोगियों को आरोपी बनाया गया है। पुलिस आगे की कार्रवाई में जुटी है।

पुलिस से झड़प करने के 26 साल पुराने मामले में अनुसूचित जाति आयोग के उपाध्यक्ष समेत तीन को कोर्ट ने किया बरी

औरंगाबाद()। औरंगाबाद व्यवहार न्यायालय के अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश(एडीजे)-3 ब्रजेश कुमार सिंह की अदालत ने शुक्रवार को 26 साल पुराने एक वाद में निर्णय पर सुनवाई करते हुए मामले के तीन अभियुक्तों अम्बा थाना के बिराज बिगहा निवासी ललन भुईयां, श्रवण भुईयां एवं कासमा थाना के ईटवां निवासी सुरेंद्र यादव को रिहा कर दिया।

एपीपी कामता प्रसाद सिंह ने बताया कि मामले की प्राथमिकी 03 अगस्त 1997 को जिला निबंधक पदाधिकारी सूर्य नारायण सिंह ने भादंवि की धारा 147, 323, 341, 353, 337, 447, 504, 307 एवं 149 के तहत दर्ज कराई थी। इन धाराओं में 30 अक्टूबर 2012 को आरोप गठन किया गया था।

तीनों पर जिला समाहरणालय पर राजनीतिक नारेबाजी करने, गेट से जबरदस्ती घुसने और पुलिस से झड़प करने का आरोप था।

मामले के बचाव पक्ष के अधिवक्ता मुकेश कुमार सिंह ने बताया कि साक्ष्य के अभाव में तीनों को दोषमुक्त किया गया है।

गौरतलब है कि मामले के एक आरोपी रहे ललन भुईयां कुटुम्बा के पूर्व विधायक है और वर्तमान में वें बिहार राज्य अनुसूचित जाति आयोग के उपाध्यक्ष है।

माओवादियों ने जुड़ी बिगहा में लगाया बम, इलाके में मचा हड़कंप, जांच में निकला मौसम डिवाइस

औरंगाबाद : प्रतिबंधित नक्सली संगठन भाकपा माओवादी के शीर्षस्थ नेता और पोलित ब्यूरो के सदस्य प्रमोद मिश्रा की की गया में गिरफ्तारी के साथ ही नक्सली संगठन द्वारा बदले की कार्रवाई किए जाने का संकेत मिलने लगा है। यह संकेत गिरफ्तारी के बाद ही श्री मिश्रा के गृह जिला औरंगाबाद में देखने को मिला। 

बताया जाता है कि अति नक्सल प्रभावित देव थाना क्षेत्र के जुड़ी बिगहा के ग्रामीणों ने गांव के बघार में एक बम देखा। बम की खबर के बाद गांव में सनसनी फैल गयी। लोग दहशत में सिहर उठे। ग्रामीणों ने इसकी सूचना देव थाना की पुलिस को दी। 

सूचना मिलते ही पुलिस महकमा हरकत में आ गया। सूचना पर देव थाना एएसआई राहुल कुमार, रंजय कुमार, गोविंद कुशवाहा, जितेंद्र चौधरी एवं आतिश सिंह सदल बल मौके पर पहुंचे। 

पुलिस अधिकारियों ने इसकी जानकारी सीआरपीएफ की टीम को दी। सीआरपीएफ की टीम के बम निरोधक दस्ते के जवान विपिन कुमार एवं श्याम सुंदर कुमार भी अपनी टीम के साथ मौके पर पहुंचे। टीम ने काम करना शुरू किया। सुरक्षा के लिहाज से पूरे इलाके की घेराबंदी कर चप्पा चप्पा सर्च किया जाने लगा। बम डिटेक्टिंग यंत्र से जांच की जाने लगी। 

जांच में बम जैसी दिख रही चीज मौसम विभाग द्वारा जांच करने वाली डिवाइस निकली। इसके बाद ग्रामीणों से लेकर पुलिस महकमें तक के लोगो ने राहत की सांस ली। इस दौरान गांव में दहशत का माहौल बना रहा। हालांकि नक्सलियों द्वारा नकली बम लगाकर पुलिस को परेशान करने और भरमाने का यह कोई पहला मौका नही है। इसके पहले भी नक्सली इलाकें में इस तरह का काम करते रहे है। जब कभी नक्सलियों ने इस तरह की गतिविधियां की है, उसके बाद बड़ी घटना को अंजाम दिया है। ऐसे में शीर्षस्थ माओवादी नेता प्रमोद मिश्रा की गिरफ्तारी के बाद नक्सलियों की इस तरह की गतिविधि को खतरे का संकेत के साथ ही किसी बड़ी घटना को अंजाम देने का प्री ट्रायल की माना जा सकता है। 

नक्सलियों की कार्यशैली भी इस बात का संकेत करती रही है कि जब भी पुलिस ने किसी बड़े माओवादी नेता पर हाथ डाला है, तब तब नक्सलियों ने बदले की कार्रवाई में किसी बड़ी घटना को अंजाम दिया है। 

इस घटना को इलाके में प्रमोद मिश्रा की गिरफ्तारी से भी जोड़कर देखा जा रहा है क्योकि श्री मिश्रा माओवादियों के टॉप लीडर है। ऐसे में पुलिस को इलाके में शांति बनाए रखने के लिए पुलिस को एहतियात बरतने और लगातार सर्च ऑपरेशन चलाते रहने की जरुरत है।

औरंगाबाद से धीरेन्द्र

विधानसभा की याचिका समिति अध्ययन दल 02 द्वारा औरंगाबाद स्थित राजकीय अंबेडकर बालिका आवासीय विद्यालय, सीलार का किया निरीक्षण

आज दिनांक 10 अगस्त 2023 को विधानसभा की याचिका समिति अध्ययन दल 02 द्वारा औरंगाबाद स्थित राजकीय अंबेडकर बालिका आवासीय विद्यालय, सीलार का निरीक्षण किया गया। 

समिति के माननीय अध्यक्ष एवं अन्य माननीय सदस्यों द्वारा विद्यालय के साफ सफाई की स्थिति पर नाराजगी जाहिर की गई। माननीय सदस्यों द्वारा विद्यालय में साफ सफाई की कमी को ध्यान में रखते हुए प्रखंड कल्याण पदाधिकारी को साफ-सफाई की ओर विशेष ध्यान देने का निर्देश दिया गया। माननीय अध्यक्ष ने विद्यार्थियों से बात करते हुए विद्यालय में मिल रहे भोजन के गुणवत्ता का अवलोकन किया। माननीय सदस्यों द्वारा विद्यार्थियों से उनके पाठ्यक्रम से संबंधित एवं सामान्य ज्ञान से संबंधित प्रश्न पूछ कर शिक्षा के गुणवत्ता का निरीक्षण किया गया। 

उन्होंने आवासीय विद्यालय के शिक्षा की गुणवत्ता में अपेक्षित प्रगति लाने हेतु विद्यालय का एक कमेटी गठित कर जांच कराने का निर्देश दिया। उन्होंने प्रधानाध्यापक सहित सभी शिक्षक गणों से शिक्षा की गुणवत्ता संबंधित सवाल किए एवं शिक्षा की गुणवत्ता सुधारने हेतु निरंतर प्रयास करने का निर्देश दिया।

पीड़ित प्रतिकर योजना और पाॅक्सो अधिनियम पर पैनल अधिवक्ताओ के प्रशिक्षण का हुआ आयोजन

औरंगाबाद : विधिक सेवा प्राधिकार के सचिव, सह अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश प्रणव शंकर द्वारा आज जिला विधिक सेवा प्राधिकार के प्रकोष्ठ में आज प्राधिकार से जुड़े पैनल अधिवक्ताओं को बिहार पीड़ित प्रतिकर योजना के साथ-साथ कई विषयों पर पैनल अधिवक्ताओं को प्रशिक्षित किया गया। 

सचिव ने कहा कि प्रशिक्षण सत्र का मुख्य उद्देश्य पैनल अधिवक्ताओं को और प्रतिस्पर्धी तथा उर्जा के साथ कार्य करने हेतु तैयार किया जाना है जिससे कि जिला विधिक सेवा प्राधिकार अन्तर्गत कोई भी विधिक सहायता चाहने वाले लोगो को आपके द्वारा विधिक सहायता प्रदान किया जाता है तो अपने उद्देश्यों में सफल हो और विधिक सहायता देने में आपको ज्यादा-से ज्यादा सफलता मिल सके। 

बैठक में सचिव द्वारा बताया गया कि प्राधिकार के तहत आवंटित जितने भी वाद पैनल अधिवक्ताओं को दिये गये हैं उसमें उर्जा लगाकर कार्य करें ताकि प्राधिकार में आये लोगों को प्राधिकार के प्रति विश्वास और बढ़े तथा समाज में जिला विधिक सेवा प्राधिकार के तहत जरूरतमंद लोगों को लाभ लेने में किसी भी तरह की संकोच न हो और वे प्राधिकार से लाभ ले सके। 

उन्होंने प्रशिक्षण सत्र में कहा कि कहा कि प्राधिकार के तहत मिलने वाली सुविधाओं का सद्पयोग हो और उसका परिणाम साकारात्मक आये। इसी उद्देश्य से जिला विधिक सेवा प्राधिकार व्यवहार न्यायालय में कार्यरत विशेष न्यायाधीश तथा विशेष लोक अभियोजक के माध्यम से पैनल अधिवक्ताओं को विशेष जागरूकता सह सेमीनार का आयोजन किया गया। 

   

पैनल अधिवक्ताओं को पाॅक्सो अधिनियम की बारीकियों की जानकारी आवश्यक-मीतु सिंह

          

इस प्रशिक्षण के दूसर सत्र में इसी सत्र में श्रीमती मितु सिंह अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश सह विशेष न्यायाधीश पाॅक्सो द्वारा पाॅक्सो अधिनियम से जुड़े कानूनों पर विस्तार से बताया गया सभी पैनल अधिवक्ताओं को पाॅक्सो अधिनियम और उससे जुड़े कानूनों पर विस्तार से चर्चा करते हुए कहा गया कि आपको पाॅक्सो अधिनियम से जुड़े कानूनों को बारीरियों को जानना आवश्यक है जिससे कि आपके पास कोई पाॅक्सो अधिनियम से सम्बन्धित मामला आता है तो आपको विधिक सहायता प्रदान करने में काफी सहुलियत होगी। 

उनके द्वारा कहा गया कि पाॅक्सो को बचाव करते समय कई महत्वपूर्ण बिन्दुओं को जानना और पालन करना बेहद ही आवश्यक है जैसे पीड़िता का पहचान का उजागर न करना, उससे प्रतिपरीक्षण के दौरान संयमित सवाल करना तथा प्रतिपरीक्षण की नियम को विस्तार से उनके द्वारा इस प्रशिक्षण सत्र में बताया गया। इसके साथ-साथ उनके द्वारा पैनल अधिवक्ताओं द्वारा उठाये गये कई सवालों का जबाव विस्तारपूर्वक दिया गया। 

विशेष लोक अभियोजक शिवलाल मेहता के द्वारा इस प्रशिक्षण सत्र में अभियोजन से सम्बन्धित कई जानकारी पैनल अधिवक्ताओं को उपलब्ध कराया गया।

औरंगाबाद से धीरेन्द्र

औरंगाबाद पुलिस अधीक्षक ने किया 10थाना अध्यक्ष को किया तबादला नबीनगर मनोज पाण्डेय तो बड़ेम सिमरन राज को मिला नए थाना के कमान

औरंगाबाद की पुलिस कप्तान स्वपना गौतम मेश्राम ने गुरुवार को दस थानों के थानाध्यक्षों को इधर उधर किया है। एसपी ने बताया कि औरंगाबाद नगर थानाध्यक्ष इंस्पेक्टर सतीश बिहारी शरण को पुलिस कार्यालय में डीसीआरबी व लोक शिकायत कोषांग का प्रभारी बनाया गया है। वही 

नबीनगर थानाध्यक्ष इंस्पेक्टर विजेंद्र प्रसाद सिंह को पुलिस कार्यालय में ही मद्य निषेध कोषांग का प्रभारी बनाया गया है। इसी प्रकार ओबरा के थानाध्यक्ष पुअनि पंकज कुमार सैनी को औरंगाबाद नगर थाना का थानाध्यक्ष, देव थानाध्यक्ष मनोज कुमार पांडेय को नबीनगर थानाध्यक्ष, बड़ेम ओपी प्रभारी धनंजय कुमार सिंह को फेसर का थानाध्यक्ष, जिला आसूचना इकाई के प्रभारी सुशील कुमार शर्मा को ओबरा का थानाध्यक्ष, दाउदनगर थाना के पुअनि राजगृह प्रसाद को देव का थानाध्यक्ष, नबीनगर थाना के पुअनि दिनेश पासवान को बंदेया का थानाध्यक्ष, बंदेया थानाध्यक्ष 

रामायण कुमार को दाउदनगर थाना की अनुसंधान इकाई में कनीय अवर निरीक्षक, अम्बा थाना की कनीय अवर निरीक्षक 

सिमरन राज को बड़ेम ओपी का प्रभारी बनाया गया है।

जमीनी विवाद में दो पक्षों के बीच खूनी संघर्ष, तीन गंभीर रूप से घायल

औरंगाबाद : जिले जमीनी विवाद में दो पक्षों के बीच खूनी संघर्ष देखने को मिला है जहां टंगी से हमला कर तीन लोगों को खून से लहू लुहान कर दिया है। घटना खुदवा थाना क्षेत्र के लहसा गांव की है। 

जानकारी के अनुसार बताया जाता है कि पूर्व से जमीनी विवाद चली आ रही थी और आज उसी बात को लेकर दोनों पक्षों के बीच विवाद बढ़ गया। 

जिसके बाद पहला पक्ष ने दुसरा पक्ष पर टांगों से हमला कर तीन लोगों को खून से लहूलुहान कर दिया है। आनन-फानन में सभी घायलों को इलाज के लिए औरंगाबाद सदर अस्पताल लाया गया जहां दो की हालत गंभीर देखते हुए चिकित्सकों ने बेहतर इलाज के लिए बाहर कर दिया है। 

घटना की सूचना मिलते ही मौके पर पहुंची है पूरे मामले की जांच में जुड़ गई है।

औरंगाबाद से धीरेन्द्र

औरंगाबाद में 13 अगस्त तक बारिश के साथ साथ मेघ गर्जन एवम आकाशीय बिजली गिरने का है संभावना


औरंगाबाद : जिले में 13 अगस्त तक बारिश के साथ साथ मेघ गर्जन एवम आकाशीय बिजली गिरने की संभावना है।

मौसम पूर्वनुमान के अनुसार आगामी पाँच दिनों का दिनाँक 11, 12, 13, 14 & 15 अगस्त 2023 को अधिकतम तापमान 33, 32, 28, 327, & 26 डिग्री सेल्सियस एवं न्यूनतम तापमान 25, 24, 224, 23 & 23 डिग्री सेल्सियस रहने की संभावना है।

कृषि अनुसंधान केंद्र की ओर से किसान भाईयों को सलाह दिया गया है कि धान के खेतों में मेड़बन्दी करके रखे जिससे बारिश का पानी खेतो में रहे।

मौसम खराब होने पर अपने एवम पशुओं को भी बाहर निकले से परहेज करें।

सब्जियों में जलजमाव के स्थिति होने पर उचित जलनिकासी का प्रबंध करें।

मौसम साफ होने पर ही फसलो में किसी प्रकार के दवा का छिड़काव करें ।

औरंगाबाद से धीरेन्द्र

औरंगाबाद का निवासी कुख्यात नक्सली प्रमोद मिश्रा गया से गिरफ्तार, झारखंड सरकार ने रखा था 1 करोड़ इनाम

औरंगाबाद : जिले रफीगंज प्रखंड में कासमा थाना क्षेत्र के कासमा गांव के निवासी और आतंक का पर्याय माने जाने वाले प्रतिबंधित नक्सली संगठन भाकपा माओवादी के थिंक टैंक व झारखंड पुलिस द्वारा प्रस्तावित एक करोड़ के इनामी संगठन के पोलित ब्यूरो सदस्य प्रमोद मिश्रा को गया की पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है। मिश्रा के साथ एक और नक्सली को भी गिरफ्तार किया गया है। 

हालांकि पहले यह खबर आई कि श्री मिश्रा को झारखंड पुलिस ने गिरफ्तार किया है लेकिन इसके कुछ ही देर बाद गया के वरीय पुलिस अधीक्षक आशीष कुमार भारती ने साफ कर दिया कि प्रमोद मिश्रा की गिरफ्तारी गया जिले से हुई है।

 झारखंड पुलिस ने कर रखा था एक करोड़ के इनाम का प्रस्ताव-

कहा जा रहा है कि हाल तक श्री मिश्रा झारखंड में ही थे। इस बीच जब झारखंड पुलिस ने वहां माओवादियों के ईस्टर्न रीजनल ब्यूरो का हेडक्वार्टर कहे जाने वाले झारखंड के सारंडा के जंगलों में दबिश डाली थी तो उस वक्त प्रमोद मिश्रा वहां मौजूद थे। उस वक्त वे पुलिस को चकमा देकर वहां से निकल भागे थे। इसके बाद से झारखंड की पुलिस उन्हे गिरफ्तार करने के लिए हाथ धोकर पीछे पड़ी थी और बिहार पुलिस से भी इनपुट ले रही थी। बिहार और झारखंड दोनों राज्यों की पुलिस प्रमोद मिश्रा को गिरफ्तार करने के लिए एक-दूसरे से इनपुट शेयर कर रही थी लेकिन आखिरकार सफलता गया पुलिस को मिली। 

झारखंड की पुलिस मिश्रा को गिरफ्तार करने के प्रति किस हद तक गंभीर थी, इस बात का अंदाजा इसी से लगाया जा सकता है कि पुलिस ने उनपर पर एक करोड़ के इनाम का प्रस्ताव झारखंड सरकार को भेज रखा था। मिश्रा की यह दूसरी बार की गिरफ्तारी है। दूसरी बार की गिरफ्तारी नक्सली संगठन के लिए एक बहुत बड़ा झटका माना जा रहा है।      

पहली बार झारखंड से दूसरी बार बिहार से गिरफ्तारी

पहली बार प्रमोद मिश्रा की गिरफ्तारी झारखंड से हुई थी लेकिन दूसरी बार गिरफ्तारी बिहार के गया से हुई। उसके साथ एक और नक्सली अनिल यादव की भी गिरफ्तारी हुई है। दोनों की निशानदेही पर गया पुलिस एक साथ कई ठिकानों पर छापेमारी कर रही है।

गया पुलिस, सीआरपीएफ व एसटीएफ की संयुक्त काईवाई में हुई गिरफ्तारी-

गया के सीनियर एसपी आशीष कुमार भारती ने बताया कि बिहार एसटीएफ, गया पुलिस एवं सीआरपीएफ की संयुक्त टीम ने प्रमोद मिश्रा एवं एक अन्य नक्सली को गिरफ्तार किया है। 

उन्होने बताया कि दोनों की गिरफ्तारी गया जिले के टिकारी थाना क्षेत्र से की गई है। गिरफ्तारी के बाद सीआरपीएफ की कोबरा टीम दोनो से पूछताछ कर रही है। उनकी निशानदेही पर नक्सली संगठन से जुड़े अन्य सहयोगियों और हथियारों का पता लगाने के लिए गया जिले के इमामगंज, बांकेबाजार और डुमरिया थाना क्षेत्र में एक साथ कई ठिकानों पर छापेमारी की जा रही है। 

खुफिया इनपुट पर हुई गिरफ्तारी-

गया के वरीय पुलिस अधीक्षक आशीष भारती ने बताया कि पिछले कुछ दिनों से आसूचना प्राप्त हो रही थी कि कुख्यात नक्सली प्रमोद मिश्रा एवं अनिल यादव टिकारी अनुमंडल के विभिन्न थाना क्षेत्रों में भ्रमणशील रहकर किसी बाड़ी घटना को अंजाम देने की फिराक में थे। इस सूचना के सत्यापन तथा आवश्यक कार्रवाई के लिए उन्होने एक विशेष टीम(गया पुलिस एवं अन्य सुरक्षा एजेंसी) गठित की। टीम के द्वारा प्रभावी आसूचना संकलित करते हुए कुख्यात नक्सली प्रमोद मिश्रा एवं गया जिले के लुटूआ थाना के असुरइन निवासी नक्सली अनिल यादव को गिरफ्तार कर लिया गया। दोनों गिरफ्तार नक्सली कई कांडों के वांछित आरोपित है। 

मामले में दोनों के विरुद्ध कांड दर्ज करते हुए अग्रिम कार्रवाई की जा रही है। दोनों नक्सलियों से पूछताछ कर अग्रेतर कार्रवाई भी की जा रही है।

          

माओवादियो के ईस्टर्न रीजनल ब्यूरो के सुप्रीमो पद की रेस में थे प्रमोद मिश्रा-

कहा जा रहा है कि प्रमोद मिश्रा झारखंड के सारंडा स्थित भाकपा माओवादी के झारखंड, बिहार, उत्तर प्रदेश, बंगाल और नॉर्थ ईस्ट के राज्यों के ईस्टर्न रीजनल ब्यूरो के कमांडर यानी सुप्रीमो पद की रेस में थे। इस पद के लिए श्री मिश्रा के अलावा माओवादियो के पोलित ब्यूरो के एक और सदस्य मिसिर बेसरा भी दावेदार थे। कहा यह भी जा रहा है कि इस पद को लेकर दोनों में रस्साकशी चल रही थी। इसे लेकर संगठन में भी विवाद चल रहा था। उनकी गिरफ्तारी को इस विवाद से भी जोड़कर देखा जा रहा है। 

2006 में पोलित ब्यूरो के सदस्य बने थे प्रमोद मिश्रा

गौरतलब है कि 2006 में भाकपा माओवादी का पोलित ब्यूरो सदस्य बनने के बाद पहली बार उनकी गिरफ्तारी 2008-09 में हुई थी। गिरफ्तारी के बाद लंबे समय तक वें औरंगाबाद समेत बिहार के छपरा एवं अन्य जेलों के अलावा दूसरे राज्यों के जेलों में रहे। इस दौरान उन पर दर्ज मुकदमों की लंबे समय तक सुनवाई चली लेकिन किसी भी मुकदमें में उन पर कोई आरोप प्रमाणित नही हो सका। आखिरकार अंतिम तौर पर औरंगाबाद से ही उनकी रिहाई हुई। 

बीच में रिहाई के बाद गांव में बनाया था प्रमोदाश्रम

रिहाई के बाद प्रमोद मिश्रा अपने गांव कासमा में ही अपने नाम पर एक आश्रम "प्रमोदाश्रम" बनाकर रह रहे थे। एक साल तक वें आश्रम में ही रहे लेकिन पांच-छः साल पहले वें अचानक आश्रम से इस कदर गायब हुए कि परिजनों तक को पता नही चला। गायब हाेने के बाद यह माना गया कि आश्रम में रहना उनके लिए खतरे से खाली नही रह गया था। लिहाजा वें भूमिगत होकर फिर से संगठन में चले गये। इसके बाद बिहार के औरंगाबाद और आसपास के जिलों के अलावा झारखंड के सीमावर्ती जिलों में होने वाली हर नक्सली घटना में प्रायः उनका नाम आता रहा। इस तरह से भूमिगत होने के बाद से ही बिहार में औरंगाबाद और आसपास के जिलों के विभिन्न थानों में उन पर दो दर्जन से अधिक मामले दर्ज हो गये। 

कहा जा रहा कि नक्सली कमांडर संदीप यादव के जिंदा रहने तक श्री मिश्रा झारखंड की सीमा पर स्थित बिहार के छकरबंधा के जंगली इलाके में माओवादियो के संगठन को मजबूत करने में लगे थे। जून 2022 में छकरबंधा के इलाके को सुरक्षाबलों ने जब खाली करा दिया तो यह खबर निकल कर सामने आई थी कि प्रमोद मिश्रा सारंडा चले गए है। इसके बाद पुलिस को भी यह पता नही चल पा रहा था कि प्रमोद मिश्रा कहां है। इसके बाद आज ही यह पता चला कि गया से उनकी गिरफ्तारी हुई है।

औरंगाबाद से धीरेन्द्र

चार अभियुक्तों को दो साल की सजा


आज़ व्यवहार न्यायालय औरंगाबाद में एडिजे दस रत्नेश्वर कुमार सिंह ने मुफ्फसिल थाना कांड संख्या -47/15 में निर्णय पर सुनवाई करते हुए चारों अभियुक्तों को सज़ा सुनाई है,

अधिवक्ता सतीश कुमार स्नेही ने बताया कि प्राथमिकी सूचक विजय यादव खोजा बिगहा खैराविंद ने 14/03/15 को मारपीट कर घायल करने का प्राथमिकी नरेश यादव, सुशील यादव,जुदागीर यादव और सोनु कुमार खोजा विगहा खैराविंद पर दर्ज कराई थी, आज निर्णय पर न्यायधीश ने

आरोप को सही पाते हुए सभी अभियुक्तों को भादंवि धारा 341 में एक माह, धारा 323 में एक साल और धारा 324 में दो साल की सज़ा सुनाई है सभी सजाएं साथ साथ चलेंगी,