*प्रत्येक युवा पर्यटन क्लब को पर्यटन सम्बंधी गतिविधियों के संचालन के लिए 10 हजार की आर्थिक सहायता मिलेगीः जयवीर सिंह*


लखनऊ। प्रदेश की समृद्ध सांस्कृतिक, आध्यात्मिक, ऐतिहासिक एवं प्राकृतिक विरासत के प्रति जागरूकता उत्पन्न करने के लिए प्रदेश के शासकीय एवं गैर शासकीय शैक्षणिक संस्थानों में युवा पर्यटन क्लब गठित किया जा रहा है। इस पर्यटन क्लब में कम से कम 25 छात्र एवं 02 शिक्षक शामिल किये जाएंगे। इस युवा पर्यटन क्लब के सभी सदस्यों को पर्यटन मित्र कहा जायेगा। इन क्लबों की पर्यटन सम्बंधी गतिविधियों के संचालन के लिए 10 हजार रूपये की आर्थिक सहायता भी प्रदान की जायेगी।

यह जानकारी आज यहां प्रदेश के पर्यटन एवं संस्कृति मंत्री जयवीर सिंह ने देते हुए बताया कि युवा पर्यटन क्लबों के सदस्यों द्वारा फोटोग्राफी, सेल्फी, प्रतियोगिता, साइकिलिंग टूर, हेरिटेज वॉक, स्थानीय भ्रमण आदि कार्यक्रम कराये जाने के साथ-साथ पर्यटन स्थलों पर जाकर पर्यटन विषयों पर निबंध लेखन, चित्रकला, पोस्टर बनाना, नाट्य रूपांतरण, वाद-विवाद जागरूकता अभियान आदि गतिविधियां सम्पादित की जाएंगी।

पर्यटन मंत्री ने बताया कि उप्र पर्यटन नीति-2022 के अन्तर्गत प्रदेश में स्थापित राजकीय इण्टर कॉलेज, डिग्री कॉलेज, नवोदय विद्यालय, केन्द्रीय विद्यालय, अटल श्रमिक स्कूल, कस्तूरबा गांधी विद्यालय आदि शैक्षणिक संस्थानों को पर्यटन सम्बंधी गतिविधियों के लिए 10 हजार रूपये की आर्थिक सहायता प्रदान की जायेगी। उन्होंने बताया कि एक मण्डल में एक वर्ष में अधिकतम 10 ऐसे क्लबों को सम्बंधित जिले के जिलाधिकारी की संस्तुति पर सहायता प्रदान की जायेगी। किसी शैक्षणिक संस्थान को वर्ष में एक बार ही आर्थिक सहायता दी जायेगी।

*यूपी पुलिस भर्ती: आयु सीमा में छूट दी जाने की मांग को लेकर डीएम को सौंपा ज्ञापन*


लखनऊ । सवर्ण आर्मी की बैठक में सवर्ण आर्मी के राष्ट्रीय अध्यक्ष सर्वेश पाण्डेय ने कहा की पुलिस भर्ती २०२३ में सामान्य वर्ग के बच्चे बच्चियों की आयु सीमा में छूट नहीं दी जा रहीं है जो की बहुत बड़ा भेद भाव सामान्य वर्ग के बच्चों के साथ किया जा रहा है । सवर्ण आर्मी पूरे प्रदेश में हर जनपद में मुख्यमंत्री को संबोधित जिलाधिकारी को ज्ञापन सौंपा दिया जा रहा है । जिसमे मांग की गईं है की सामान्य वर्ग के बच्चों की आयु सीमा 18 से 25 वर्ष बच्चियों की 18से 28 वर्ष ईडब्ल्यूएस वर्ग के बच्चों की 18से 28साल किया जाय।

सरकार के पास ऐसा कौन सा चश्मा है जिसमें दलित ओबीएस 28 साल तक जवान रहते हैं । सामान्य वर्ग का 22साल मे बूढ़ा हो जाता हैं। मानसिक शारीरिक रूप से कमजोर हो जता है। दुर्भाग्य की बात है कि सामान्य वर्ग के लोग किसी न किसी विधायक सांसद मंत्री दल के नेता के आगे पीछे घूम रहे हैं । बच्चों पर लाखों रुपए खर्च किए हैं 1018 के बाद पुलिस भर्ती नहीं निकली जिस कारण आयु सीमा के कारण भर्ती से बाहर हो जा रहे हैं। लाखों बच्चे भर्ती से बाहर हो गए थे उनमें से दस हजार भी बच्चे सड़क पर उतर आए तो स्थित बदल जाती ।

अगर आप खुद नहीं लड़ोगे तो तुम्हारी लड़ाई कौन लड़ेगा । क्या सामान्य वर्ग के लोग पार्टी का झंडा डंडा लेकर की चलेंगे मैं एससी एसटी ओबीसी भाई का न ही सरकार का विरोध कर रहा हूं । सवर्ण आर्मी प्रदेश महासचिव सूरज प्रसाद चौबे ने कहा की राष्ट्रीय अध्यक्ष के दिशा निर्देश में उत्तर प्रदेश के हर जिले में पुलिस भर्ती मे आयु सीमा बड़ाने के लिए जिलाधिकारी को ज्ञापन दिया जा रहा है ।प्रदेश सचिव चन्द्र प्रकाश शर्मा के नेतृत्व में मथुरा फिरोजाबाद अमेठी एम ज्ञापन दिया जा रहा है। अन्य जिले में ज्ञापन सौंपा जानें की तैयारी की जा रही है 18जुलाई तक सभी जिले में जिलाधिकारी को ज्ञापन दे दिया जायेगा ।

*मुख्यमंत्री योगी ने प्रदेश की स्वास्थ्य व्यवस्था बेहतर बनाने के सम्बन्ध में दिशा-निर्देश दिए*


लखनऊ।मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ अपने सरकारी आवास पर आहूत एक उच्चस्तरीय बैठक में प्रदेश की स्वास्थ्य व्यवस्था को बेहतर बनाने के सम्बन्ध में विभागीय अधिकारियों को आवश्यक दिशा-निर्देश दिए। मुख्यमंत्री ने कहा कि 08 आकांक्षात्मक जनपदों और 100 आकांक्षात्मक विकास खण्डों के समग्र विकास का प्रयास अपेक्षित परिणाम देने वाला सिद्ध हो रहा है।

इन सभी क्षेत्रों में अच्छी स्वास्थ्य सुविधा सहजता से उपलब्ध हो, इसके लिए राज्य सरकार सभी आवश्यक प्रबन्ध करने को संकल्पित है। आकांक्षात्मक जनपदों और विकास खण्डों में गुणवत्तापूर्ण स्वास्थ्य सेवा उपलब्ध कराने के लिए अनेक बड़े संस्थानों ने निवेश की इच्छा प्रकट की है। ऐसे में स्वास्थ्य विभाग इन क्षेत्रों में अस्पतालों के विकास के लिए निजी निवेश को प्रोत्साहित करने के उद्देश्य से यथाशीघ्र अच्छी नीति तैयार करे।

मुख्यमंत्री ने निर्देशित किया कि नवीन नीति तैयार करते समय निजी क्षेत्र की आवश्यकताओं के ध्यान में रखा जाए। प्रारम्भिक चरण में हमें इन क्षेत्रों में न्यूनतम 50 बेड की क्षमता वाले अस्पताल की स्थापना पर फोकस करना चाहिए। यह प्रयास आकांक्षात्मक जनपदों और आकांक्षात्मक विकास खण्डों में गुणवत्तापूर्ण स्वास्थ्य सेवाओं की उपलब्धता को सहज बनाने में सहायक होंगी।

मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश के सभी शासकीय अस्पतालों, स्वास्थ्य केंद्रों में चिकित्सकों के सभी पदों पर योग्य एवं कुशल चिकित्सकों की तैनाती होनी चाहिए। कहीं भी कोई पद रिक्त न रहे। अस्पतालों में विशेषज्ञ चिकित्सकों की उपलब्धता अत्यन्त महत्वपूर्ण है। वर्तमान में सीधी भर्ती और सामान्य चिकित्सकों के विशेष प्रशिक्षण द्वारा विशेषज्ञ चिकित्सकों की उपलब्धता करायी जा रही है, किन्तु भविष्य के दृष्टिगत अन्य विकल्पों पर भी विचार किया जाना चाहिए।

मुख्यमंत्री ने कहा कि चिकित्सकों की अधिवर्षता आयु में वृद्धि किए जाने पर विचार किया जाए। इसके साथ ही, चिकित्सकों को पुनर्नियोजित करने के नियमों को भी बेहतर किए जाने की आवश्यकता है। राजकीय चिकित्सकों को परिवीक्षा अवधि में उच्च शिक्षा प्राप्त करने की अनुमति दी जाए। इस अवधि हेतु असाधारण अवकाश स्वीकृत किया जा सकता है। इस सम्बन्ध में आवश्यक प्रस्ताव तैयार किया जाए।

*अयोध्या में निर्मित किए जा रहे गेटवे कॉम्प्लेक्स में आने वाले श्रद्धालुओं की सुविधा का विशेष ध्यान रखा जाए : सीएम योगी*


लखनऊ। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के समक्ष उनके सरकारी आवास पर पर्यटन विभाग द्वारा प्राचीन धरोहर भवनों के एडॉप्टिव रियूज, जनपद अयोध्या में प्रस्तावित संग्रहालय मंदिर एवं गेटवे कॉम्प्लेक्स टूरिस्ट फैसिलिटेशन सेण्टर के सम्बन्ध में प्रस्तुतीकरण किया गया। प्रस्तुतीकरण का अवलोकन करने के उपरान्त मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश में पर्यटन के क्षेत्र में असीम संभावनाएं हैं। इसके दृष्टिगत प्रदेश सरकार राज्य में पर्यटन गतिविधियों को बढ़ाने के लिए गम्भीरता से प्रयास कर रही है।

प्रदेश सरकार राज्य में पर्यटन गतिविधियों को बढ़ाने के लिए गम्भीर

मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश में विरासत सम्पत्तियों के मूल गौरव को स्थापित करने का कार्य किया जा रहा है। इसमें निजी निवेश का भी सहयोग लिया जाए। उन्होंने कहा कि प्रथम चरण में जनपद लखनऊ की छत्तर मंजिल, कोठी गुलिस्तां-ए-इरम, कोठी दर्शन विलास, कोठी रोशन-उद्-दौला के साथ ही जनपद मिर्जापुर के चुनार किला, बरसाना के जलमहल, कानपुर के शुक्ला तालाब, बिठूर की टिकैतराय बारादरी की असंरक्षित विरासत सम्पत्तियों को विकसित किया जाए।

प्रदेश में विरासत सम्पत्तियों के मूल गौरव को स्थापित करने का कार्य किया जा रहा

मुख्यमंत्री ने कहा कि जनपद अयोध्या में संग्रहालय मंदिर के निर्माण के दौरान भगवान श्री राम से सम्बन्धित परम्पराओं का समावेश किया जाए। अयोध्या में आने वाले श्रद्धालु भगवान श्रीराम एवं उनकी परम्पराओं के जानना चाहते हैं, इसलिए संग्रहालय में रामलीला एवं रामायण के विभिन्न दृश्यों का अंकन हो। उन्होंने कहा कि जनपद अयोध्या में निर्मित किए जा रहे गेटवे कॉम्प्लेक्स में आने वाले श्रद्धालुओं की सुविधा का विशेष ध्यान रखा जाए। पंचकोसी एवं चौदह कोसी मार्गों को इस प्रकार विकसित किए जाए कि वहां पर प्राकृतिक सौंदर्य बना रहे।

*आॅनलाइन ठगी से निपटने को यूपी पुलिस से जुड़ेंगे फिल्मी सितारे व खिलाड़ी*


लखनऊ । यूपी पुलिस के तमाम प्रयास करने के बाद आॅनलाइन ठगी के मामले कम होने का नाम नहीं ले रहा है। जबकि लोगों को लगातार जागरूक किया जा रहा है कि मोबाइल पर अनजान काल आने के बाद ओटीपी व अपनी निजी कोई जानकारी न दें। मोबाइल फोन पर फालतू ऐप लोड न करें। सस्ता गिफ्ट पाने के चक्कर में आनलाइन खरीदारी सोच समझकर करें। यह सब बताने के बाद भी लोग साइबर ठग के चुंगल में फंसकर आॅनलाइन ठगी के शिकार हो जा रहे है। जबकि साइबर ठगी के तेजी से बढ़ते मामलों को देखते हुए इसके लिए प्रदेश के हर जिले में अलग से थाना स्थापित किया जा रहा है। ताकि आॅनलाइन ठगी की आने वाले शिकायतों जल्द से जल्द निस्तारण किया जा सके।

उत्तर प्रदेश में बढ़ते साइबर अपराध को लेकर पुलिस महकमा गंभीर

पुलिस महानिदेशक व पुलिस महानिरीक्षक के सम्मेलन में क्षेत्रीय भाषाओं में साइबर क्राइम एवं हेल्प लाइन के बारे में आमजन को जागरूक किये जाने की अपेक्षा की गयी थी। इसी क्रम में उत्तर प्रदेश पुलिस द्वारा फिल्म अभिनेता राजकुमार राव के माध्यम से आमजन को साइबर सुरक्षा के प्रति जागरूक किये जाने का प्रयास किया गया है। भविष्य में अन्य फिल्मी सितारों, खिलाड़ियां को भी साइबर क्राइम के जागरूकता अभियान से जोड़े जाने का कार्य यूपी पुलिस द्वारा किया जायेगा। वर्तमान में 18 परिक्षेत्रीय मुख्यालय पर साइबर थाने क्रियाशील हैं। जिनमें 91 निरीक्षक, 93 उनि, 51 मुख्य आरक्षी एवं 176 आरक्षी के पद तथा इनके प्रभावी पर्यवेक्षण के लिए मुख्यालय स्तर पर अपर पुलिस महानिदेशक के अधीन 17 पुलिस उपाधीक्षक, चार अपर पुलिस अधीक्षक, दो पुलिस अधीक्षक एवं एक पुलिस महानिरीक्षक के पद स्वीकृत किये गये हैं।

अब तक 75 में से 57 जनपदों में खोले जा चुके हैं साइबर थाना

सीएम द्वारा प्रत्येक जनपद में साइबर थाना खोले जाने की घोषणा की गयी थी, जिसके अनुपालन में प्रदेश के 57 जनपदों में साइबर थाना स्थापित करने की कार्रवाई प्रचलित है। साइबर धोखाधड़ी पर त्वरित कार्रवाई के लिए हेल्प लाइन नम्बर 1930 13-05-2021 से 247 क्रियाशील है। इस हेल्पलाइन की मदद से अभी तक प्रदेश में रुपए लगभग 52.50 करोड़ की राशि सम्बन्धित बैंकों में फ्रीज/होल्ड करायी गयी है। साइबर अपराधों में प्रदेश के थानों द्वारा कुल 5,432 साइबर अभियुक्तों को गिरफ्तार किया गया एवं 89.46 करोड़ रुपए की धनराशि बरामद की गयी है। साइबर अपराध से सम्बन्धित अभियोगों में त्वरित रूप से गुणवत्तापूर्ण विवेचनात्मक कार्रवाई की जा रही है एवं साइबर क्राइम अपराध सम्बन्धित अभियोगों में अभी तक 5,477 आरोप पत्र न्यायालय में प्रेषित किये जा चुके है।

कार्रवाई के लिए 13 मई 2021 को जारी किया गया 1930 हेल्पलाइन नंबर

यूपी पुलिस द्वारा आॅनलाइन शॉपिंग फ्रॉड के विरुद्ध चलाए जा रहे जागरूकता अभियान का बॉलीवुड के फिल्मस्टार राजकुमार राव ने भी किया समर्थन। आमजन को आॅनलाइन शॉपिंग फ्रॉड से सतर्क रहने एवं जागरूक किए जाने के उद्देश्य से उत्तर प्रदेश पुलिस ने अपने ट्विटर पर नौ जुलाई को ट्वीट किया गया। उक्त ट्वीट में बॉलीवुड फिल्म स्टार राजकुमार राव ने आॅनलाइन शॉपिंग फ्रॉड से लोगों से सतर्क रहने की अपील करते हुए यूपी पुलिस के साइबर क्राइम जागरूकता अभियान की सराहना की गई है। यूपी पुलिस के इस ट्वीट को अभी तक लगभग 22 हजार लोगों द्वारा देखा जा चुका है तथा लगभग 425 से अधिक लोगों द्वारा ट्वीट और 560 से अधिक लोगों द्वारा लाइक किया जा चुका है।

*सड़क पर युवती का अर्धनग्न अवस्था में मिला शव, पुलिस ने मौके पर पहुंचकर शव को कब्जे में लिया*


लखनऊ । राजधानी में बुधवार की सुबह लखनऊ- लखनऊ- रायबरेली हाईवे पर एक निजी प्रशिक्षण केंद्र के पास एक अज्ञात युवती का अर्धनग्न शव पड़ा मिला है। इससे क्षेत्र में सनसनी फैल गई। सूचना पर पुलिस भी मौके पर पहुंच गई।

पुलिस के अनुसार युवती के शव के पास रिक्शा ठेला खड़ा था। युवती के चप्पल गायब थे। उसके शव में कोई जाहिराना चोट के निशान नहीं हैं। राहगीरों की सूचना पर पहुंची पुलिस शव को सीएचसी मोहनलालगंज ले आई। पुलिस युवती के शव की शिनाख्त का प्रयास कर रही है। लोग युवती की हत्या कर शव फेंकने की आशंका व्यक्त कर रहे है।

हालांकि पुलिस का कहना है कि युवती की मौत कैसे हुई है यह तो पोस्टमार्टम रिपोर्ट के बाद ही कुछ कहा जा सकता है। वैसे जानकारी करने पर पता चला कि युवती अक्सर इस इलाके में घूमती थी।

*बिजली घर के जनसेवा केंद्र से कैश लूटने वाले दो गिरफ्तार,इनके द्वारा लखनऊ ही नहीं प्रदेश के कई जनपदों की की जाती थी लूट की वारदात*


लखनऊ । अपराध शाखा, क्राइम टीम डीसीपी उत्तरी व थाना गाजीपुर की संयुक्त पुलिस टीम द्वारा गाजीपुर थाना क्षेत्रान्तर्गत व प्रदेश के कई जनपदों में लूट की घटना कारित करने वाले अन्तर्जनपदीय दो शातिर लूटरों को गिरफ्तार करते हुए घटना का किया गया सफल अनावरण।

पूछताछ में पता चला कि पकड़े गए शातिर लुटेरे लखनऊ में घूमकर जगहों की रेकी करते हैं। इसके बाद असलहे की नोक पर लूट कर भाग जाते हैं। बिजली घर के जनसेवा केंद्र में हुई लूट के दो लाख 17 हजार रुपये भी बरामद किया गया है। साथ ही इनके पास से एक तमंचा और कारतूस भी मिला है।

डीसीपी उत्तरी एसएम कासिम आब्दी ने बताया कि पकड़े गए शातिर चोरों द्वारा आठ जुलाई को इंदिरानगर में स्थित बिजली घर में बने जनसेवा केंद्र से साढ़े तीन लाख रुपये की दिन दहाड़े लूट की गई थी। जिनकी गिरफ्तारी के लिए कई टीमें गठित की गई थी। चूंकि इन्होंने जनसेवा केंद्र में प्रवेश के दौरान हेलमेट पहनने व स्कूटी पर नंबर न होने के कारण इनको पकड़ने में काफी मशक्कत करनी पड़ी।

पुलिस को मुखबिर ने खास ने आकर सूचना दी कि सेक्टर 25 के पास स्थित पावर हाउस जन सेवा केन्द्र से आठ जुलाई को लूट करने वाले जंगल वाली रोड के किनारे से शेरवुड एकेडमी से आगे आयुर्वेद संस्थान की तरफ आ रहे हैं। तभी जंगल रोड किनारे से होकर एक स्कूटी आती हुई दिखाई दी। जिसके चलाने वाला व्यक्ति हेलमेट लगाये था तथा दोनों काले रंग की शर्ट पहने हुए रोड लाइट की रोशनी में दिखाई दिये। जिनकी ओर इशारा करके मुखबिर ने बताया कि वहीं दोनों व्यक्ति है । जिन्होंने पावर हाउस जन सेवा केन्द्र से रुपयो की लूट की घटना की है। इसके उपरान्त मुखबिर चला गया।

स्कूटी सवार दोनों व्यक्ति जब पुलिस बल की जद में आ गये तो निरीक्षक धर्मेन्द्र कुमार के इशारा करने पर समस्त पुलिस बल आड़ से निकल कर स्कूटी सवार व्यक्तियों को रोका गया जो एकाएक पुलिस बल को देखकर मुड़कर भागने का प्रयास करने लगे। जिन्हे दौड़ाकर घेरकर आवश्यक बल प्रयोग करते हुए आयुर्वेद संस्थान से करीब 20 मीटर दूर सड़क पर ही पकड़ लिया गया । भागने का कारण पूछा गया तो बताया कि हम दोनों ने सेक्टर 25 चौराहा पावर हाउस से जहां बिल जमा होता है वहां से रुपये लूट कर भाग गये थे। गाड़ी चला रहे व्यक्ति से हेलमेट उतरवाकर नाम पता पूछा गया तो अपना नाम मो. आसिफ खान उर्फ आर्यन उर्फ चाइना पुत्र तनबीरुल हसन निवासी जरवा रोड तुलसीपुर थाना तुलसीपुर जनपद बलरामपुर हाल पता- फ्लैट नंबर- 205 तैयबा अपार्टमेन्ट पन्तनगर थाना इन्दिरानगर उम्र- 29 वर्ष तथा दूसरे ने अपना नाम इन्द्रजीत ओझा उर्फ छोटू उर्फ बाबू पुत्र शिवदेव ओझा निवासी कन्हईपुर निकट पावर हाउस थाना धूमनगंज जनपद प्रयागराज मूल पता- ग्राम परसया थाना हल्दी जनपद बलिया वर्तमान पता- फ्लैट नं0-205 तैयबा अपार्टमेन्ट पन्तनगर थाना इन्दिरानगर उम्र 33 वर्ष बताया।

मो. आसिफ खान उर्फ आर्यन उर्फ चाइना उपरोक्त की जामातलाशी से उसके कब्जे से एक अदद रिवाल्वर 32 बोर देशी व चार जिंदा कारतूस 32 बोर व एक अदद मोबाइल वन प्लस कम्पनी आसमानी रंग बरामद हुआ तथा 105600 रुपये नगद बरामद हुआ । दूसरे इन्द्रजीत ओझा उर्फ छोटू उर्फ बाबू उपरोक्त के पास से कुल 112300 रुपये बरामद हुआ। भागने का कारण पूछने पर दोनों ने बताया कि इसी रिवाल्वर को दिखाकर हम लोगों ने सेक्टर 25 चौराहा पावर हाउस के अन्दर जहां बिल जमा होता है वहां से तीन लाख पचास हजार रुपये लूटे थे। अभियुक्त उपरोक्त के विरूद्ध विभिन्न जनपद में अभियोग पंजीकृत है।

पूछताछ में पता चला कि यह शातिर किस्म के लुटेरे है। ये दोनों दोस्त है और प्रयागराज में एक साथ पढ़ाई की है। आसिफ खान पर करीब दस मुकदमा प्रदेश के कई थानाक्षेत्रों में दर्ज है। इसी प्रकार से उसके दूसरे साभी इंद्रजीत पर भी इलाहाबाद के आसपास के जिलों में आधा दर्जन से अधिक मुकदमा लूट के दर्ज है। इनके द्वारा पहले रेकी की जाती है फिर वारदात को अंजाम देते है। आसिफ खान बिजली घर में लूट की वारदात को अंजाम देने से पहले कई दिन रेकी किया था। बिजली घर में कैमरा तो नहीं लगा है। आसपास की पूरे लोकेशन लेने के बाद लूट की। दोनों लुटे जुआ खेलने और नशे के आदी है।

*डिप्टी सीएम बृजेश पाठक के निर्देश पर चार और चिकित्सक बर्खास्त, जानिये कहां का है मामला*


लखनऊ । ड्यूटी से लगातार गैरहाजिर रहने वाले चिकित्सकों पर कार्रवाई का सिलसिला जारी है। मंगलवार को डिप्टी सीएम बृजेश पाठक के निर्देश पर चार चिकित्सकों को बर्खास्त कर दिया गया है। यह चिकित्सक गाजीपुर, मीरजापुर, जौनपुर और सुल्तानपुर के अलग- अलग अस्पतालों में तैनात थे। योगी सरकार के तमाम प्रयास करने के बाद भी चिकित्सक सरकारी सेवा में आना ही नहीं चाह रहे है। इसके बावजूद भी स्वास्थ्य विभाग काम न करने वाले चिकित्सकों के खिलाफ कोई नरम रूख नहीं अपनाना चाहती है।

इन डॉक्टरों पर हुई कार्रवाई

प्रदेश भर में स्वास्थ्य सुविधाओं में सुधार के क्रम में ड्यूटी से लगातार अनुपस्थित रहने वाले डॉक्टरों के खिलाफ भी कार्रवाई की जा रही है डिप्टी सीएम बृजेश पाठक के निर्देश पर सीएचसी मनिहारी, गाजीपुर में तैनात डा. अब्दुल्लाह फैसल, मुख्य चिकित्साधिकारी मीरजापुर के अधीन सीएचसी सीखड़ में तैनात डा. प्रगति शर्मा, मुख्य चिकित्साधिकारी जौनपुर के अधीन तैनात डा. प्रसन्न कुमार सिंह तथा मुख्य चिकित्साधिकारी सुल्तानपुर के अधीन सीएचसी भदैया, सुल्तानपुर में तैनात डा. सन्तोष कुमार वर्मा पर विभागीय कार्रवाई की गई है। लापरवाही और अनुशासनहीनता एवं लंबे समय से शासकीय ड्यूटी से अनुपस्थित रहने पर इन चिकित्सकों को बर्खास्त कर दिया गया है।

बाहर की दवा लिखने पर जांच के आदेश

वहीं जिला चिकित्सालय कुशीनगर में अव्यवस्थाओं एवं बाहर की दवा लिखे जाने संबंधी प्रकरण को लेकर डिप्टी सीएम बृजेश पाठक ने संबंधित चिकित्सकों के विरुद्ध कार्यवाही के आदेश मुख्य चिकित्साधिकारी को दे दिये है। गोंडा की सीएचसी कटरा बाजार पर तैनात कंप्यूटर आपरेटर अजय यादव पर जन्म प्रमाण पत्र के नाम पर रुपये लेने के आरोप में सीएमओ को उस कर्मी के खिलाफ कार्रवाई के निर्देश दिए गए हैं।

*यूपी की तर्ज पर देश के सभी नर्सिंग और पैरामेडिकल संस्थानों की हो रही रेटिंग: क्यूसीआई*


लखनऊ । 'मिशन निरामयाः' जैसे अभिनव प्रयास के लिए मुख्यमंत्री के विजन को प्रेरक बताते हुए क्यूसीआई के सेक्रेटरी जनरल आरपी सिंह ने बताया कि उत्तर प्रदेश के इस प्रयास का अनुकरण करते हुए नीति आयोग ने इंडियन नर्सिंग कॉउंसिल को ऐसी ही व्यवस्था पूरे देश में लागू करने का परामर्श दिया है। इससे पहले, क्यूसीआई सेक्रेटरी जनरल ने रेटिंग तय करने के लिए अपनाई गई प्रक्रिया के बारे में मुख्यमंत्री को विस्तार से जानकारी दी।

उन्होंने बताया कि 34 दिन के भीतर क्यूसीआई की टीम प्रदेश के हर संस्थान नर्सिंग व पैरामेडिकल संस्थान में गई, वहां तय मानकों पर शैक्षिक गुणवत्ता की परख की गई। शुचिता का ध्यान रखते हुए परीक्षकों ने बॉडी वार्न कैमरे लगाए हुए थे और पूरे परीक्षण प्रक्रिया की विधिवत रिकॉर्डिंग की जा रही थी। परीक्षण के बाद 267 संस्थानों ने अपनी अपील सबमिट की थी, सभी को उनके वीडियो दिखाकर उनकी आपत्तियों का समुचित समाधान किया गया। इसमें 64 ने अपनी समस्याएं भी रखीं और अंततः सभी की आपत्तियों/जिज्ञासा का समाधान करते हुए अन्तिम रूप से संस्थानों और पाठ्यक्रमों की रेटिंग तैयार की गई और आज एक भी संस्थान ऐसा नहीं जो अपनी रेटिंग से असंतुष्ट हो।

उपमुख्यमंत्री और स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा मंत्री ब्रजेश पाठक ने पैरामेडिकल व नर्सिंग संस्थानों की आवश्यकता पर जोर देते हुए हर मेडिकल कॉलेज के साथ नर्सिंग व पैरामेडिकल संस्थान स्थापना की नीति के लिए मुख्यमंत्री को धन्यवाद ज्ञापित किया और गुणवत्तापरक चिकित्सा शिक्षा के लिए हर जरुरी प्रयास करने के लिए मुख्य्मंत्री को विश्वास दिलाया।

*माफिया और पलायन के लिए जाना जाता था मऊ और शामली, आज खुल रहा मेडिकल कॉलेज: सीएम योगी*


लखनऊ । प्रदेश के चिकित्सा शिक्षा क्षेत्र के लिए बुधवार के दिन ऐतिहासिक रहा। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की उपस्थिति में एक ओर जहां शामली और मऊ जिले में पीपीपी मोड पर मेडिकल कॉलेज स्थापना के लिए अनुबंध हुए, वहीं मिशन निरामयाः के अंतर्गत प्रदेश के सभी नर्सिंग और पैरामेडिकल संस्थानों की रेटिंग जारी की गई। यही नहीं, नर्सिंग व पैरामेडिकल संस्थानों की गुणवत्ता सुधार के लिए अपनाई गई 'मेंटॉर-मेंटी' प्रक्रिया के तहत 08 नए संस्थानों को मेंटॉर का प्रमाण पत्र दिया गया।

इस अवसर पर सीएम योगी ने कहा कि 2017 से पहले प्रदेश में मात्र 12 मेडिकल कॉलेज थे, लेकिन 2017 के बाद आदरणीय प्रधानमंत्री जी की 'एक जिला-एक मेडिकल कॉलेज की परिकल्पना को साकार करते हुए आज उत्तर प्रदेश के सभी जिलों में मेडिकल कॉलेज की स्थापना हो रही है। आज 45 जिलों में सरकारी मेडिकल कॉलेज संचालित हैं, जबकि 16 जिलों में निर्माणाधीन हैं। मऊ और शामली जैसे जिले, जो आज से 06 वर्ष पहले अन्य कारकों से जाने जाते थे, वहां आज मेडिकल कॉलेज स्थापित हो रहे है। मऊ माफ़िया के कारण भयभीत रहता था तो शामली में पलायन का दंश था। लेकिन आज इन दोनों ही जिलों में मेडिकल कॉलेज की स्थापना हो रही है। यह किसी सपने के साकार होने जैसा है।

पिछली सरकारों ने पैरामेडिकल और नर्सिंग संस्थानों को उपेक्षित रखा था। स्टेट मेडिकल फैकल्टी खुद बीमार थी और गुणवत्तापरक शिक्षा पर कोई ध्यान नहीं था। ऐसे में 'मिशन निरामयाः' की आवश्यकता थी, जिसे सरकार ने बढ़ाया। इसके तहत 12 अच्छे संस्थानों को मेंटॉर के रूप में चिन्हित किया गया। मेंटॉर-मेंटी की नीति के साथ आगे बढ़ी सुधार की प्रक्रिया का ही परिणाम है कि आज 08 और संस्थान मेंटॉर के रूप में अपग्रेड हो गए हैं। यह बदलती हुई व्यवस्था का प्रमाण है। शिक्षण संस्थानों में गुणवत्ता के साथ कोई समझौता नहीं किया जा सकता। मेडिकल कॉलेज हो या हॉस्पिटल, नर्सिंग हो या पैरामेडिकल कॉलेज, अगर गुणवत्ता है, मानक पूरा है तो उसकी शासन की सभी पात्र योजनाओं का लाभ बिना विलंब मिलना चाहिए। और अगर वह मानक पूरा नहीं करता तो ऐसे संस्थानों को अपनी सूची से बाहर किया जाना चाहिए।

सीएम योगी ने कहा कि क्वालिटी कंट्रोल ऑफ इंडिया द्वारा शुचिता और पारदर्शिता के साथ कि गई नर्सिंग और पैरामेडिकल संस्थानों की गुणवत्ता रैंकिंग अन्य संस्थानों को भी बेहतर करने के लिए प्रेरित करेगी। प्रदेश के 16 असेवित जनपदों में पीपीपी (पब्लिक प्राइवेट पार्टनरशिप) आधार पर मेडिकल कालेज की स्थापना किए जाने का निर्णय लिया गया था। इस क्रम में महाराजगंज एवं संभल में निजी निवेश कर्ताओं का चयन पूर्व में किया जा चुका है एवं दोनों स्थान पर मेडिकल कॉलेज का निर्माण प्रगति पर है। आज जनपद मऊ में राजीव सामाजिक शिक्षा सेवा संस्थान को तथा जनपद शामली में चिन्हित प्राईवेट पार्टनर-ज्ञान चेतना एजुकेशलन सोसाइटी एवं उत्तर प्रदेश शासन के बीच एग्रीमेण्ट हस्ताक्षरित हुआ है। प्रत्येक स्थान पर निजी निवेशकर्ता द्वारा लगभग ₹250 करोड़ रूपये के निवेश से एक निजी मेडिकल कॉलेज स्थापित किया जायेगा। दोनों सामाजिक संस्थानों को मेरी शुभकामनाएं।

मिशन निरामयाः के अन्तर्गत नर्सिंग व पैरामेडिकल संस्थाओं की गुणवत्ता सुधार हेतु अनेक कार्यक्रम संचालित किए जा रहे हैं। उक्त कार्यक्रम के अन्तर्गत एक प्रयास यह है कि प्रदेश में स्थापित समस्त नर्सिंग व पैरामेडिकल कालेज (सरकारी एवं निजी) का निरीक्षण क्वालिटी काउन्सिल आफ इण्डिया द्वारा कराया जाये और इसके आधार पर संस्थाओं को एक एक्रीडेशन रैंकिंग स्कोर प्रदान किया जाये। उक्त एक्रीडेशन रैंकिंग एक पुस्तिका के रूप में प्रकाशित की गयी है। उत्तर प्रदेश इस उपलब्धि को हासिल करने वाला पहला राज्य है।

स्टेट मेडिकल फैकल्टी के कायाकल्प की आवश्यकता है। इस दिशा में अच्छे प्रयास भी हुए हैं। किसी भी फाइनेंसियल ट्राजैक्शन हेतु अब किसी भी निजी संस्था व राजकीय संस्था अथवा चिकित्सा व्यवसायी को स्टेट मेडिकल फैकल्टी का शुल्क जमा करने हेतु भौतिक रूप से आने की आवश्यकता नहीं पड़ेगी क्योंकि सभी ट्रांजैक्शन के लिए एक आनलाइन पेमेंट गेटवे की व्यवस्था की गयी है, जिसका आज शुभारम्भ किया गया है। यह हर्ष का विषय है।