नियोजन नीति को लेकर छात्र संघ द्वारा आज से 48 घंटे का बंद: रांची में क्या है इसका असर जानने के लिए पढिये पूरी खबर...?


झारखंड स्टेट स्टूडेंट्स यूनियन (जेएसएसयू) की ओर से प्रस्तावित नियोजन नीति के विरोध में 48 घंटे का झारखंड बंद का आह्वान किया गया है। जिसका रांची में मिलाजुला असर देखा जा रहा है। सुबह में कई बंद समर्थक सड़क पर उतरे। प्रस्तावित नियोजन नीति के विरोध और सरकारी नौकरियों में स्थानीय लोगों को शत-प्रतिशत आरक्षण की मांग को लेकर बंद बुलाया गया है।

झारखंड स्टेट स्टूडेंट्स यूनियन के प्रमुख देवेन्द्र नाथ महतो, बंद को सफल बता रहे हैं। उन्होंने कहा कि झारखंड बस ओनर एसोसिएशन, ट्रक एसोसिएशन, दुकानदार संघ, बाजार समिति, ऑटो संघ को पूर्व में पत्र देकर बंद को सफल बनाने में सहयोग करने का आग्रह किया है। उन्होंने कहा कि झारखंड को बने 23 साल हो गए। लेकिन आज तक सरकार यहां के युवाओं के लिए एक नियोजन नीति भी नहीं बना सकी। कथित तौर पर प्रस्तावित 60:40 के अनुपात में नियोजन नीति लाने की तैयारी में राज्य सरकार है, जिसके विरोध में झारखंड बंद बुलाया गया है।

बंद के कारण लंबी दूरी के वाहनों का परिचालन प्रभावित हुआ है। जबकि ऑटो और अन्य निजी वाहन भी आम दिनों की अपेक्षा में थोड़ी कम संख्या में चल रहे हैं। स्कूलों में गर्मी की पहले से ही छुट्टियां चल रही हैं। वहीं कई दुकाने और व्यावसायिक प्रतिष्ठान भी सुबह में बंद लेकिन उसके धीरे धीरे खुलते नजर आए।

झारखंड बंद के दौरान किसी भी तरह से उत्पात से निपटने के लिए पुलिस अलर्ट नजर आ रही है। शहर के प्रमुख चौक-चौराहों पर अतिरिक्त बलों की तैनाती की गई है। इन पुलिस जवानों को बंद समर्थकों से सख्ती से निपटने के निर्देश दिए गए है।

दुमका : मिशन 2024 और 60:40 नाय चलतो! आखिर कौन है जिम्मेदार, सुनिए बंद समर्थकों की जुबानी..


दुमका : मिशन 2024 की तैयारियां चल रही है। 2024 में देश में होनेवाले लोकसभा चुनाव को देखते हुए अब सारी राजनीतिक पार्टियां अलर्ट मोड पर अपने अपने रणनीतिकारों के साथ सियासी बिसात पर गोटियां बिछा रही है।

 झारखण्ड के लिए मिशन 2024 महत्वपूर्ण है क्योंकि यहाँ लोकसभा चुनाव के बाद विधानसभा चुनाव भी होना है। अगले साल लोकसभा और विधानसभा के होनेवाले चुनाव की सभी राजनीतिक दलों ने तैयारी भी शुरू कर दी है लेकिन इन सब के बीच अलग राज्य बनने के बाद झारखण्ड की सियासत में कुछ चुनावी मुद्दे आज तक नहीं सुलझे और उन्हीं मुद्दों में एक है स्थानीयता व नियोजन नीति।

झारखण्ड बंद है। शनिवार एवं रविवार को राज्य के आदिवासी व मूलवासी छात्र एवं आमलोग सड़कों पर रहेंगे। मुद्दा झारखण्ड में अब तक किसी ठोस स्थानीयता व नियोजन नीति का नहीं बनना, परिभाषित नहीं होना। राज्य गठन के 22 वर्षों के इतिहास में कई सरकारें बनी। अलग अलग राजनीतिक दलों को सत्ता में बैठने का मौका मिला लेकिन जब भी स्थानीयता व नियोजन नीति पर चर्चा हुई या फिर सरकार उसपर आगे बढ़ी तो राज्य में उसका किसी ना किसी रूप में विरोध हुआ।

राज्य की मौजूदा हेमंत सरकार ने 60 : 40 के तर्ज पर नियोजन नीति लागू करना चाहती है पर इसका विरोध शुरू हो गया। झारखण्ड के आदिवासी व मूलवासियों को यह नीति मंजूर नहीं है क्योंकि उसके पीछे इनका अपना तर्क है और फिर इसका विरोध करते हुए कई आंदोलन हुए और अब इस आंदोलन का स्वरूप बदलते हुए उग्र होता जा रहा है।

शनिवार को छात्र समन्वय समिति के नेतृत्व में आदिवासी व मूलवासी छात्र एवं आमलोग दुमका के महत्वपूर्ण चौक चौराहों पर उतर गए। 60:40 नियोजन नीति के मुद्दे पर बंद समर्थक काफी आक्रोशित दिखे। 48 घंटे का झारखण्ड बंद है। आर्थिक नाकेबंदी की वजह से वाहनों का परिचालन पूरी तरह से ठप है। बाजार से लेकर बस पड़ाव में सन्नाटा पसरा हुआ है। इक्के दुक्के दुकान एवं प्रतिष्ठान खुले दिखे। व्यवसायी दुकानों के बाहर वेट एंड वाच की स्थिति में दिखे। आपातकालीन सेवाएं चालू है। जगह जगह पर सुरक्षा के लिहाज से पुलिस जवान मुस्तैद है। शहर में बंद का मिलाजुला असर दिखा।

वहीं छात्र नेता आंदोलन को सफल बनाने में कोई कोर कसर नही छोड़ना चाहते। छात्र नेता के मुताबिक अगर इस आंदोलन के बाद भी सरकार अपने फैसले को वापस नही लेती तो आंदोलन का स्वरूप उग्र होगा, अनिश्चितकालीन बंदी और आर्थिक नाकेबंदी की जाएगी। रेल सेवाएं बाधित की जाएगी।

छात्र नेता राजीव बास्की ने कहा कि आदिवासी और मूलवासी के मुद्दे पर राजनीति चमकाने वाली झामुमो के प्रतिनिधियों को राज्य की जनता ने बड़ी उम्मीदों के साथ सत्ता पर बैठाया था लेकिन आज झामुमो 'बाहरियों' को नौकरी और रेवड़ियां बांट रही है। कहा कि अब यहाँ के नौजवान व युवा 'बाहर' के सांसद और विधायकों को खदेड़ने का काम करेंगे। स्थानीय जनप्रतिनिधि को भी 2024 में आईना दिखाया जाएगा। कहा कि 60:40 नियोजन नीति जबरन थोपा जा रहा है। झारखण्ड की सत्ता में अधिकांश समय तक रहनेवाली भाजपा ने भी कभी यहाँ के आदिवासी व मूलवासियों की चिंता नहीं की। राज्य में स्थानीय, नियोजन और चाहे विस्थापन नीति की बात हो, कोई भी नीति आज तक ठोस नही बनी तो जनता कैसे खुशहाल रहेगी।

 छात्र नेता श्यामदेव हेम्ब्रम ने कहा कि मुख्यमंत्री को सत्ता का गुमान है लेकिन जिस झारखण्ड की जनता ने सीएम को सत्ता पर बैठाया वही जनता अगले चुनाव में उतारने का काम करेगी। हमलोगों ने इतनी बार संवैधानिक तरीके से आंदोलन किया लेकिन सीएम के कानों में जूं तक नहीं रेंगा। छात्र नेता राजेन्द्र मुर्मू ने कहा कि यह लोकतंत्र है और हमारी आवाज को सरकार दबा रही है। हमारी तो बस यही मांग है कि अंतिम सर्वे सेटेलमेंट के खतियान को आधार बनाकर नियोजन नीति बनायी जाए।

(दुमका से राहुल कुमार गुप्ता की रिपोर्ट)

दुमका : 60:40 नियोजन नीति के खिलाफ 10 व 11 जून को आर्थिक नाकेबंदी, पढ़िए बंद समर्थकों की क्या है तैयारी..

दुमका :- हेमंत सरकार के 60 : 40 नियोजन नीति के खिलाफ शनिवार एवं रविवार को दो दिनों तक 'झारखण्ड बंद' का आह्वान किया गया है। इन दो दिनों तक राज्य में पूरी तरह से आर्थिक नाकेबंदी रहेगी। दुमका में शुक्रवार को आदिवासी छात्रों ने 'सखुआ' का पत्ता लहराकर और नगाड़ा बजाकर दो दिवसीय बंदी का बिगुल फूंक दिया। 

छात्रों ने लोगों से हेमंत सरकार के नियोजन नीति के खिलाफ बुलाये गए आंदोलन में शामिल होने और बंद को सफल बनाने की अपील की।

दुमका के एसपी कॉलेज से छात्र समन्वय समिति के नेतृत्व में छात्रों ने सखुआ के पत्ता के साथ शहर में जुलूस निकाला और भगवान बिरसा मुंडा की प्रतिमा पर माल्यार्पण कर बंदी का बिगुल फूंका। 

हेमंत सरकार के स्थानीय नियोजन नीति के खिलाफ छात्रों में काफी आक्रोश दिखा और उन्होंने झारखण्ड बंद में कई संगठनों के शामिल होने की बात कही। छात्र नेता श्यामदेव हेम्ब्रम ने कहा कि झारखंड के वीर शहीद सिदो कान्हू ने सखुआ के पत्ता के साथ ब्रिटिश हुकूमत के खिलाफ आंदोलन फूँकते हुए लोगों को जगाने का काम किया था। 

आज उसी सखुआ के पत्ता के साथ हम झारखण्ड की जनता को हेमंत सरकार के नियोजन नीति के खिलाफ संदेश देने और आंदोलन का बिगुल फूंकने का काम कर रहे है। हेमंत सरकार बाहरी लोगो को नौकरी बांटने में तुली हुई है जिसे झारखण्ड के आदिवासी मूलवासी कभी सफल नहीं होने देंगे। 

उन्होंने कहा कि यहाँ की जनता को अपने हक व अधिकार के लिए संघर्ष करना होगा और इस आंदोलन को सफल बनाना होगा अन्यथा बाहरी लोगों को नौकरियां और रेवड़ियां बंटती रहेगी और यहाँ के लोगों का हक व अधिकार छीन जाएगा। छात्र नेता राजीव बास्की ने कहा कि बंदी के दौरान आपातकालीन सेवाएं चालू रहेंगी। पूरे जिले में जगह जगह पर यहाँ के आदिवासी व मूलवासी छात्र, विभिन्न संगठन और आमलोग सड़क पर उतरेंगे। पूरे 48 घंटा तक आर्थिक नाकेबंदी रहेगी। 

दुमका शहर के महत्वपूर्ण चौक चौराहों पर सुबह से ही आवागमन ठप कर दिया जाएगा। कहा कि झारखंड की हेमंत सरकार जिस तरह से यहाँ की खनिज संपदा को बेचने पर तुली हुई है उसी तरह यहाँ के लोगों की नौकरियां भी बाहरी लोगों को बेचा जा रहा है। सरकार के 60:40 स्थानीय नियोजन नीति को हम सफल नहीं होने देंगे। 

(दुमका से राहुल कुमार गुप्ता की रिपोर्ट)

दुमका : अनियंत्रित हाइवा की टक्कर में ऑटो में सवार बालक सहित 2 की मौत, गुस्साए लोगों ने किया सड़क जाम


दुमका : जिले के शिकारीपाड़ा थाना क्षेत्र अंतर्गत बरमसिया गांव के पास दुमका-रामपुरहाट मुख्य मार्ग पर एक अनियंत्रित हाइवा की टक्कर से ऑटो में सवार दो लोगों की घटनास्थल पर मौत हो गयी जबकि एक महिला गंभीर रूप से घायल हो गयी। 

घायल महिला को इलाज के लिए मोहुलपहाडी क्रिश्चयन हॉस्पिटल में इलाज के लिए भर्ती कराया गया है। मरनेवालों में एक बच्चा और एक महिला शामिल है। घटना के बाद गुस्साए स्थानीय लोगों ने सड़क जाम कर दुमका-रामपुरहाट मुख्य मार्ग पर आवागमन बाधित कर दिया। वहीं दुर्घटनाग्रस्त हाइवा को जब्त कर लिया गया।

जानकारी के मुताबिक बरमसिया गांव के पास एक दुमका की ओर आ रही अनियंत्रित हाईवा ने पहले एक कार को टक्कर मारी और फिर एक ऑटो को पीछे से टक्कर मार दिया। जिससे ऑटो में सवार एक बालक और एक महिला की मौत हो गई। महिला की पहचान नहीं हो पाई है जबकि 12 वर्षीय मृत बालक का नाम विमल मुर्मू बताया जा रहा है जो शिकारीपाड़ा थाना क्षेत्र के शहरजोरी गांव का रहने वाला था और अपनी मां के साथ छात्रवृत्ति लेकर अपने घर वापस लौट रहा था। घटना में विमल की मां गंभीर रूप से घायल हो गयी।

 घटना की सूचना मिलते ही अंचलाधिकारी राजू कमल और शिकारीपाड़ा पुलिस मौके पर पहुँची। हादसे के बाद स्थानीय लोगों में काफी आक्रोश है और उन्होंने दुमका रामपुरहाट सड़क को जाम कर दिया। जाम को छुड़ाने के लिए पुलिस के साथ साथ शिकारीपाड़ा अंचलाधिकारी राजू कमल लोगो को समझाने का प्रयास किया। सीओ के समझाने बुझाने के बाद स्थानीय लोगों ने सड़क जाम हटाया। 

सीओ राजू कमल ने कहा कि मृतक के परिजनों को सरकारी प्रावधान के तहत मुआवजा उपलब्ध कराया जाएगा। फिलहाल 10 हजार रुपये की आर्थिक मदद दी गयी है।

(दुमका से राहुल कुमार गुप्ता की रिपोर्ट)

दुमका : शिकारीपाड़ा में माप तौल विभाग की कार्रवाई, 3 धर्मकांटा के डीजीटायजर जब्त, 7 धर्मकांटा मिले बंद

दुमका : शिकारीपाड़ा में सोमवार को तीन धर्मकांटा का डीजीटायजर जब्त कर किया गया। यह कार्रवाई माप तौल विभाग ने की। 

सोमवार को शिकारीपाड़ा प्रखंड के पत्थर औद्योगिक क्षेत्र में स्थित धर्म कांटा की जांच को लेकर माप तौल विभाग के इंस्पेक्टर प्रदीप कुमार के नेतृत्व में टीम द्वारा जांच अभियान चलाया गया। जांच अभियान के दौरान क्षेत्र के धर्म कांटा के मालिकों के बीच हड़कंप सी मच गयी। क्षेत्र के अधिकांश धर्मकांटा बंद पाया गया। 

इस दौरान पांच धर्मकांटा का निरीक्षण किया गया जिसमें अपर्याप्त कागजात के कारण सरसडंगाल में श्रीगणपति धर्मकांटा, जय मां तारा स्टोन प्रोडक्ट धर्मकांटा व कौआमहल में मेसर्स भोला बाबा धर्मकांटा से डीजीटाईजर जब्त किया गया। 

माप तौल विभाग के इंस्पेक्टर श्री कुमार ने बताया कि एसडीओ के आदेश पर शिकारीपाड़ा के पत्थर औद्योगिक क्षेत्र में स्थित धर्मकांटा का औचक निरीक्षण किया गया। इस दौरान सरसडंगाल में मां दुर्गा धर्मकांटा व जय मां तारा स्टोन प्रोडक्ट धर्मकांटा की कागजात सही पाया गया। 

अपर्याप्त कागजात आदि को लेकर सरसडंगाल में श्री गणपति धर्मकांटा, जय मां तारा स्टोन प्रोडक्ट धर्मकांटा (दूसरी) व कौआमहल में मेसर्स भोला बाबा धर्मकांटा से डीजीटाईजर जब्त किया गया है। अभियान के दौरान इस क्षेत्र में स्थित अन्य सात धर्मकांटा बंद पाया गया। 

कहा कि इस संबंध में जांच रिपोर्ट अनुमंडल कार्यालय को भेजी जा रही है। 

टीम में माप तौल विभाग के इंस्पेक्टर के अलावा सीओ राजू कमल, माप तौल विभाग के कर्मिगण तथा एसआई मनोज करमाली शामिल थे।

(दुमका से राहुल कुमार गुप्ता की रिपोर्ट)

दुमका : अब एक्वा जॉय धारा 'अनसेफ', बिक्री पर लगी रोक, कंपनी ने कहा - तकनीकी एक्सपर्ट की मदद से कर लिया गया है सुधार

दुमका : बोतल बंद पानी का कारोबार बाजार में किस कदर हावी होता जा रहा है यह उसकी बाजार और खपत से सहज अंदाजा लगाया जा सकता है। बूंद बूंद से पैसा कमाने में लगी देशी से विदेशी कंपनियां लोगों को अपने प्रॉडक्ट पर विश्वास जमाने के लिए कोई कसर नहीं छोड़ती लेकिन क्या सभी बोतल बंद पानी इंसान के लिए सुरक्षित है। 

दुमका में हाल ही में स्थानीय स्तर पर एक बोतल बंद कंपनी काइट्स एक्वा पैकेज्ड ड्रिंकिंग वाटर के सैंपल को जांच के लिए कोलकाता के राष्ट्रीय खाद्य प्रयोगशाला भेजा गया था। जांच के बाद काइट्स एक्वा को अनसेफ माना गया और फिर उसकी बिक्री पर रोक लगा दी गयी लेकिन बाद में काइट्स एक्वा ने अपने प्लांट में जरूरी सुधार की फिर उसकी बिक्री पर लगी रोक को हटा लिया गया।

 अब ताजा मामला एक्वा जॉय धारा पैकेज्ड ड्रिंकिंग वाटर से जुड़ा है जिसकी जांच के बाद अगले आदेश तक उसके किसी तरह की बिक्री पर रोक लगा दी गयी है। अनुमंडल पदाधिकारी कौशल कुमार ने मेसर्स हरि लक्ष्मी इंटरप्राइजेज के प्रोपराइटर मंटू कुमार लाहा को एक पत्र लिखकर एक्वा जॉय धारा के बिक्री पर लगायी गयी रोक की जानकारी दी। 

जानकारी के मुताबिक एक्वा जॉय धारा का प्लांट जरमुंडी में है। बीते 15 अप्रैल को खाद्य सुरक्षा पदाधिकारी अमित कुमार ने एक्वा जॉय धारा का सैम्पल लेकर जांच के लिए कोलकाता के राष्ट्रीय खाद्य प्रयोगशाला भेजा था। 

जांच में एक्वा जॉय धारा को अनसेफ कैटेगरी में माना गया जो अस्वास्थ्यकर, हानिकारक और स्वास्थ्य के प्रतिकूल माना गया। एसडीओ ने एक्वा जॉय धारा के सारे पानी को 48 घंटे के अंदर बाजार एवं उपभोक्ताओं से वापस करने का आदेश दिया है। 

इधर मेसर्स हरि लक्ष्मी इंटरप्राइजेज के प्रोपराइटर मंटू कुमार लाहा ने कहा कि प्लांट में आवश्यक सुधार कर लिया गया है और पत्र के माध्यम से इसकी जानकारी भी अनुमंडल पदाधिकारी को दे दी गयी है। मंटू लाहा ने कहा कि जांच रिपोर्ट आने के बाद तकनीकी विशेषज्ञों को प्लांट बुलाया गया था। 

प्लांट के कर्मियों को भी साफ सफाई के प्रति एहतियात बरतने का निर्देश दिया गया है ताकि भविष्य में इसकी पुनरावृत्ति नहीं हो। कहा कि प्लांट में जरूरी सुधार के बाद कंपनी की ओर से दुबारा जांच के लिए सैम्पल भेजा गया है। 

अब अनुमंडल पदाधिकारी के आदेश का इंतजार किया जा रहा है। बिक्री चालू करने का आदेश मिलते ही एक्वा जॉय धारा को पुनः बाजार में उतारा जाएगा।

(दुमका से राहुल कुमार गुप्ता की रिपोर्ट)

(Exclusive) दुमका : आखिर कैसे सुर्खियों में आया हँसडीहा का सिंह बिहार होटल! 'गठजोड़' की यह खबर आपको पढ़नी चाहिए


दुमका : हँसडीहा का सिंह बिहार लाइन होटल। काफी आलीशान और भव्य तो नहीं लेकिन एक सामान्य से दिखने वाले होटल से पुलिस, होटल संचालक व मालिक और तथाकथित माफिया के गठजोड़ से चलनेवाले वाहनों से अवैध वसूली के गोरखधंधे का जब प्रथम दृष्टया खुलासा हुआ तो वो काफी चौकानेवाला निकला। सारा 'डील' होटल के छत के नीचे या फोन से होता था। 

हालांकि अब यह जांच का विषय है कि वाहनों से अवैध वसूली के गोरखधंधे के लिए सिंह बिहार होटल कितने दिनों से शरणस्थली बना था, पूरे डील में होटल मालिक की क्या भूमिका थी और कौन कौन लोग इसमें संलिप्त थे और बड़ा सवाल यह भी कि किसके संरक्षण में यह गोरखधंधा चला रहा था। जिस जमीन पर होटल चल रहा है उस जमीन के रैयत वासुदेव हेम्ब्रम है और होटल संचालक और रैयत के बीच साल 2021 में एक एकरारनामा हुआ था। फिलहाल दुमका के पुलिस अधीक्षक अम्बर लकड़ा ने हँसडीहा थाना प्रभारी जितेंद्र कुमार सिंह को लाइन हाजिर और गश्ती दल में शामिल सहायक अवर निरीक्षक प्रभात रंजन को निलंबित कर दिया है। वहीं होटल संचालक सुंदरम कुमार सिंह उर्फ हीरा सिंह हिरासत में है जबकि उसके बिजनेस पार्टनर श्याम कुमार मंडल की तलाश है।

 गौरतलब है कि जितेंद्र कुमार सिंह करीब दो सालों तक जामा में थाना प्रभारी के रूप में रह चुके है। बिहार के एक ट्रक एसोसिएशन के अध्यक्ष पंकज सिंह के इंटरनेट मीडिया पर प्रसारित वीडियो के बाद जब खलबली मची और पुलिस महकमे में चर्चा का बाजार गर्म होने के बाद खबरें मीडिया में आई तो हलचल बढ़ गयी। प्रशासन रेस हो गया और मामले की जांच भी शुरू हो गयी। पंकज सिंह ने अपने वीडियो में कई आरोप लगाया है। 

उन आरोपों में जितेंद्र कुमार सिंह के जामा थाना प्रभारी के रूप में रहते हुए कामकाज पर सवाल उठाया गया है पर इन तमाम आरोपों के बीच यह भी एक बड़ा सवाल है कि जामा में थाना प्रभारी के रुप मे रहते हुए जितेंद्र सिंह के कार्यकाल के दौरान ट्रक एसोसिएशन ने कभी सवाल नहीं उठाया तो क्या उस वक्त सबकुछ ठीक ठाक चल रहा था या फिर सबकुछ 'मैनेज्ड' था!  

बहरहाल, ट्रक एसोसिएशन बिहार के अध्यक्ष पंकज कुमार सिंह द्वारा ट्रक चालक से हँसडीहा थाना द्वारा 40 हजार रुपये लेने के लगाए गए आरोप के बाद रविवार को उपायुक्त के आदेश के बाद अनुमंडल पदाधिकारी कौशल कुमार के नेतृत्व में जिला प्रशासन की एक टीम हँसडीहा स्थित सिंह बिहार होटल में जाँच के लिए पहुँची। इस दौरान टीम ने होटल से कई साक्ष्य इकट्टे कर अपने साथ ले गई। एसडीएम ने पैसे के लेनदेन के मामले में होटल संचालक सुंदरम सिंह, इंडियन ऑइल पम्प संचालक नीलेश कुमार और निमाई मंडल से पूछताछ की। 

पूछताछ के दौरान होटल संचालक, पैट्रोल पम्प संचालक और एक व्यवसायी ने पैसे की लेनदेन की सारी बातों को टीम के सामने रखा। एसडीएम ने मौक़े से जिस ट्रक के चालक से पैसे ली गई थी उसके मालिक से फोन करवा कर सच्चाई जानने का प्रयास किया। ज्ञात हो कि एक दिन पूर्व ही ट्रक एसोसिएशन बिहार के अध्यक्ष ने एक ट्रक चालक से हँसडीहा पुलिस के द्वारा अवैध रूप से चालीस हजार रुपये लेने का आरोप लगाया था और आरोप से सम्बंधित कई साक्ष्य भी उन्होंने इंटरनेट मीडिया पर उपलब्ध कराया था। रविवार को एसडीएम के नेतृत्व में इन्हीं सब की जाँच के लिए टीम पहुँची थी। 

इसी दौरान छापेमारी टीम में उत्पाद विभाग की टीम ने होटल से बियर के 18, केन के 12, फूल के 2, क्वाटर के 8, और करीब 5 लीटर देशी शराब बरामद किया। वहीं होटल संचालक सुंदरम सिंह को हिरासत में लेकर अपने साथ ले गई। छापेमारी दल में उत्पाद विभाग के उत्पाद अधीक्षक पीएन भगत, एसआई सुमितेश कुमार, शिव सागर महतो, विकर कुमार शामिल थे। जिला खाद्य पदाधिकरी अमित कुमार ने होटल के खाद्य सामग्रियों की भी जांच की और कुछ सैम्पल जांच के लिए ले गए। 

अनुमंडल पदाधिकारी कौशल कुमार ने कहा कि इंटरनेट मीडिया पर ऑडियो वीडियो वायरल हुआ था जिसमें अवैध तरीके से राशि की उगाही की बात सामने आई थी। जिसमें हंसडीहा थाना प्रभारी का नाम सामने आया था। उसी के आलोक में सिंह बिहार होटल में छापेमारी की गई। सभी बिंदुओं पर जांच चल रही है। उन्होंने कहा कि जांच के दौरान कई साक्ष्य मिले है। वरीय अधिकारी को रिपोर्ट सौंपी जाएगी। 

एसडीओ श्री कुमार के नेतृत्व में जांच टीम में जिला खनन पदाधिकारी कृष्णचंद्र किस्कू, जरमुंडी सीओ राजकुमार प्रसाद, जरमुंडी बीडीओ फुलेश्वर मुर्मू, बीडीओ सरैयाहाट दयानंद जायसवाल, उत्पाद अधीक्षक पी एन भगत मौजूद थे।

(दुमका से राहुल कुमार गुप्ता की रिपोर्ट)

ब्रेकिंग :वाहनों से अवैध वसूली मामले में हँसडीहा थाना प्रभारी लाइन हाजिर


दुमका : वाहनों से अवैध वसूली मामले में हँसडीहा थाना प्रभारी लाइन हाजिर, एक एएसआई सस्पेंड, एसपी ने की पुष्टि

ब्रेकिंग:दुमका के 18 मजदूर ओड़िशा में हुए रेल हादसे के शिकार, घायल मजदूरों से प्रशासन ने किया सम्पर्क

दुमका : दुमका के 18 मजदूर ओड़िशा में हुए रेल हादसे के शिकार, घायल मजदूरों से प्रशासन ने किया सम्पर्क, पीड़ित परिवार से एसडीओ के नेतृत्व में मिली टीम, कहा- शेष लापता मजदूरों से सम्पर्क साधने का लगातार हो रहा प्रयास.

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