श्रीनगर पहुंचे सेना प्रमुख, करेंगे सुरक्षा स्थिति की समीक्षा, पहलगाम हमले के घायलों से मिलने राहुल भी पहुंच रहे अनंतनाग

#armychiefupendradwivedirahul_gandhi

जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले में पाकिस्तान कनेक्शन सामने आने के बाद भारत ने सख्त रुख अपनाते हुए पड़ोसी देश पर कई प्रहार किए हैं। जिसमें सिंधु नदी समझौता स्थगित करना भी शामिल हैष इस मुद्दे पर शुक्रवार को गृह मंत्री अमित शाह अपने आवास पर एक बैठक करने जा रहे हैं। इस बैठक में जलशक्ति मंत्री सीआर पाटिल समेत कई सीनियर केंद्रीय मंत्री शामिल हो सकते हैं। इस बीच, भारत ने पाकिस्तान को औपचारिक पत्र लिखकर सिंधु जल संधि को निलंबित करने की सूचना दे दी है। वहीं सेना प्रमुख जनरल उपेंद्र द्विवेदी भी आज श्रीनगर पहुंच गए हैं। वह 15 कोर में सुरक्षा बैठक की समीक्षा करेंगे। इसके साथ ही वह आतंकी हमले वाली जगह पर भी जाएंगे। वहीं कांग्रेस नेता राहुल गांधी भी जम्मू-कश्मीर जाएंगे।

आर्मी चीफ पहुंचे श्रीनगर

पहलगाम में 26 निर्दोष पर्यटकों की जान लेने वाले आतंकवादियों के खिलाफ सुरक्षाबल एक्टिव हो गए हैं। आर्मी चीफ जनरल उपेंद्र द्विवेदी श्रीनगर पहुंच चुके हैं। वे घाटी में सुरक्षा की समीक्षा करने के साथ ही आतंकवादियों और उनके गढ़ को तबाह करने की रणनीति भी बनाएंगे। उनका कश्मीर घाटी में तैनात वरिष्ठ सैन्य कमांडरों और अन्य सुरक्षा एजेंसियों के अधिकारियों के साथ बैठक करने का कार्यक्रम है। वह घाटी में चल रही सुरक्षा स्थिति और पाकिस्तान सेना द्वारा नियंत्रण रेखा (लाइन ऑफ़ कंट्रोल) पर संघर्ष विराम का उल्लंघन करने के प्रयासों की समीक्षा करेंगे।

यूएस दौरे रद्द कर देश लौटे राहुल गांधी

पहलगाम आतंकी हमले को लेकर कांग्रेस नेता राहुल गांधी शुक्रवार को जम्मू-कश्मीर का दौरा करेंगे। राहुल गांधी अमेरिका की यात्रा पर थे लेकिन यात्रा बीच में छोड़कर गुरुवार सुबह वे दिल्ली लौट आए थे। राहुल गांधी से पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने भी अपनी-अपनी विदेश यात्रा बीच में रद्द कर दी थी। पीएम मोदी सऊदी अरब तो सीतारमण अमेरिका के दौरे पर थीं।

गुस्से में देश

पहलगाम आतंकी हमले में हिंदुओं की बर्बर हत्या की गई। इससे लोगों का आक्रोश बढ़ता जा रहा है। गुरुवार को देशभर में प्रदर्शन हुए। शुक्रवार को भी देश भर में प्रदर्शन होगा। शुक्रवार को भी दिल्ली बंद का ऐलान किया गया है। दिल्ली में पाकिस्तानी उच्चायोग के बाहर लोगों ने प्रदर्शन किया। करीब 300 लोगों ने उच्चायोग के समक्ष नारेबाजी की।

पाकिस्तानी सेना ने एलओसी पर की फायरिंग, भारत ने पड़ोसी देश की चौकियों से हुई गोलीबारी का दिया जवाब

#pakistan_army_firing_on_loc

पहलगाम हमले के बाद भारत और पाकिस्तानी सेना के बीच तनातनी शुरू हो गई है। पाकिस्तान की सेना ने कुछ जगहों पर छोटे हथियारों से गोलीबारी शुरू की। भारतीय सेना ने इसका करारा जवाब दिया। पहलगाम आतंकी हमले के बाद से ही पाकिस्तान डरा हुआ है। वह भारत की जवाबी कार्रवाई के डर से छटपटा रहा है। इस बीच पड़ोसी मुल्क की ओर से फायरिंग की गई है।

गुरुवार की रात को पाकिस्तानी आर्मी ने संघर्ष विराम का उल्लंघन करते हुए भारत के 8 चौकियों पर रात भर फायरिंग करती रही। गोलीबारी छोटे हथियारों के जरिए की गई। भारतीय सेना के अधिकारी ने बताया कि भारतीय सेना ने इसका प्रभावी ढंग से जवाब दिया। फिलहाल किसी के हताहत होने की कोई खबर नहीं है।

इससे पहले पाकिस्तान ने गुरुवार को भारत के साथ शिमला समझौते और अन्य द्विपक्षीय समझौतों को स्थगित कर दिया, सभी प्रकार के व्यापार पर रोक लगा दी और भारतीय एयरलाइन के लिए अपने हवाई क्षेत्र को बंद कर दिया। इसके साथ ही उसने कहा कि सिंधु जल संधि के तहत उसके लिए निर्धारित पानी के प्रवाह को रोकने या परिवर्तित करने का कोई भी प्रयास युद्ध छेड़ने के समान माना जाएगा।

पाकिस्तान ने भारत की ओर से की गई जवाबी कार्रवाई के बाद ये कदम उठाया। दरअसल, पहलगाम में आतंकवादी हमले के बाद भारत ने जवाब में पाकिस्तान पर कई तरह के प्रतिबंध लगा दिया है। इसमें सिंधु जल समझौता, पाकिस्तानियों के वीजा रद्द और भारत खाली करने के आदेश से लेकर कई तरह के प्रतिबंध शामिल हैं। वहीं, पीएम मोदी ने गुरुवार को साफ कर दिया कि इस कुकृत्य के जिम्मेदार को ‘मिट्टी में मिला देंगे।’ इस हमले से भारत अभी उबर नहीं पाया था कि पाकिस्तान ने अंतरराष्ट्रीय सीमा पर नापाक हरकत कर दी।

पहलगाम हमले के बाद क्यों खौफ में पाकिस्तान? सीमा के पास पीएएफ की बड़ी हलचल

#pakistanarmyfears

जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए खौफनाक आतंकी हमले के बाद पाकिस्तान में खौफ का माहौल है। शायद पाकिस्तान को पुलवामा हमले के बाद हुए भारतीय एक्शन की याद ताजा हो गई है। आतंकी हमले के तुरंत बाद पाकिस्तानी सेना ने अपने एयरबेस की सुरक्षा बढ़ा दी है। मंगलवार रात को सेना के बड़े-बड़े अधिकारी एयरबेस की मॉनिटरिंग में लगे रहे। भारत की कार्रवाई के खौफ में पाकिस्तानी वायुसेना अलर्ट पर हैं। फ्लाइट रेडार डेटा में दर्ज पाकिस्तानी वायुसेना की असामान्य गतिविधियों से इसका पता चलता है।

फ्लाइट रडार 24 में दर्ज डेटा के मुताबिक पहलगाम हमले के तुरंत बाद रावलपिंडी और लाहौर से सेना के 2 फाइटर जेट को उड़ते देखा गया। एक फाइटर जेट तो एलओसी के आसपास चक्कर लगा रहा था। अहमदपुर ईस्ट के पास आखिरी बार पाकिस्तानी फाइटर जेट को उड़ान भरते देखा गया। सीमा पर पाकिस्तानी वायुसेना के जिन विमानों को उड़ान भरते देखा गया है, उनमें PAF198 और PAF101 नंबर की फ्लाइट है। पाकिस्तान की वायुसेना दोनों ही विमानों का इस्तेमाल अक्सर खुफिया अभियानों के लिए करती रही है।

सीमा पर पाक सेना की उपस्थिति बढ़ी

रिपोर्ट के अनुसार, पाकिस्तान एयरपोर्स ने भारतीय सीमा के पास अपनी उपस्थिति बढ़ानी शुरू कर दी है। पाकिस्तान ने क्षेत्र में हवाई निगरानी को बढ़ाने के लिए साब एरिए एयरबॉर्न अर्ली वार्निंग एंड कंट्रोल एयरक्राफ्ट को तैनात किया है। एरिए सिस्टम एयर क्राफ्ट, मिसाइल और लंबी दूरी पर जमीनी लक्ष्यों का पता लगाने में सक्षम है, जो पाकिस्तानी वायुसेना को त्वरित कार्रवाई करने की क्षमता के लिए तैयार करता है।

सर्जिकल स्ट्राइक का डर

पहलगाम में आतंकवादी हमले के बाद गृह मंत्री अमित शाह ने बयान जारी किया है। शाह का कहना है कि एक भी आंतकी बख्शे नहीं जाएंगे। शाह खुद जम्मू कश्मीर पहुंच गए हैं। वहीं से हालात का जायजा ले रहे हैं। ऐसे में पाकिस्तान की धड़कने बढ़ी हुई है। पाकिस्तानी पत्रकार और एनालिस्ट कमर चीमा ने चेतावनी दी है कि भारत इस हमले का जवाब दे सकता है। उन्होंने कहा, ‘पहलगाम हमले के बाद भारत की ओर से सर्जिकल स्ट्राइक या एयर स्ट्राइक जैसी कार्रवाई हो सकती है। भारत इस हमले को हल्के में नहीं लेगा।

बता दें कि 2019 में पुलवामा में पाकिस्तान समर्थित आतंकवादियों ने हमला किया था, जिसके बाद भारत ने पीओके के इलाके में सर्जिकल स्ट्राइक के जरिए 300 आतंकवादियों को ढेर कर दिया था। इस बार भी पाकिस्तान की सेना को फिर से सर्जिकल स्ट्राइक का डर सताने लगा है।

अग्निवीर के लिए ऑनलाइन आवेदन की तारीख बढ़ी, सेना की अपील – भर्ती के लिए झांसे में ना आएं…

रायपुर-  भारतीय थल सेना ने अग्निवीर की भर्ती के लिए अधिसूचना जारी की है, जिसकी विस्तृत जानकारी www.joinindianarmy.nic.in पर उपलब्ध है. अग्निवीर की भर्ती जनरल, तकनीकी, कर्लक, ट्रेडमेन (8वीं एवं 10वीं) महिला सैन्य पुलिस और रेगुलर कैडर मर्ती धर्म गुरू, नर्सिंग सहयोगी और सिपाही फार्मा के पदों के लिए जारी की गई है. सेना में भर्ती के लिए अब ऑनलाइन आवेदन की प्रक्रिया 25 अप्रैल 2025 तक बढ़ा दी गई है.

आवेदकों को यदि ऑनलाइन आवेदन करने में किसी भी प्रकार की समस्या आ रही हो तो वे सेना भर्ती कार्यालय के दूरमाष क्रमांक 0771-2965212 अथवा 0771-2965214 पर संपर्क कर सकते हैं. भारतीय थल सेना ने कहा है कि सेना में चयन निष्पक्ष, पारदर्शी एवं योग्यता के आधार पर ही किया जाता है इसलिए आवेदन भर्ती के लिए किसी भी अनाधिकृत व्यक्तियों के झांसे में ना आएं.

हम हिंदुओं से अलग, बच्चों को पाकिस्तान की कहानी सुनाएं', पाक सेना प्रमुख ने उगला भारत के खिलाफ जहर

#pakistanarmychiefasimmunirtargetsindia

पाकिस्तान के सेना प्रमुख असीम मुनीर ने भारत के खिलाफ जहर उगला है। बुधवार को इस्लामाबाद में प्रवासी पाकिस्तानी सम्मेलन में पाक सेना प्रमुख असीम मुनीर ने एक बार फिर भारत और हिंदू धर्म को लेकर जहरीला बयान दिया।असीम मुनीर ने एक बार फिर ‘टू नेशन थ्योरी’ को दोहराते हुए कहा कि पाकिस्तान की नींव इस्लाम के कलमे पर रखी गई है और हम हर मामले में हिंदुओं से अलग हैं। उन्होंने कहा कि पाकिस्तान एक धार्मिक सोच की बुनियाद पर बना है।

जनरल मुनीर ने विदेशी पाकिस्तानियों से कहा कि वे देश के राजदूत हैं और उन्हें यह नहीं भूलना चाहिए कि वे उच्च विचारधारा और संस्कृति" से ताल्लुक रखते हैं। उन्होंने कहा कि आपको अपने बच्चों को पाकिस्तान की कहानी जरूर बतानी चाहिए। हमारे पूर्वजों ने सोचा था कि हम जीवन के हर पहलू में हिंदुओं से अलग हैं। हमारे धर्म, हमारे रीति-रिवाज, परंपराएं, विचार और महत्वाकांक्षाएं अलग हैं। यही द्वि-राष्ट्र सिद्धांत की नींव थी जो रखी गई थी।

पाकिस्तान की कहानी याद रखने की अपील की

इसके साथ ही उन्होंने भारत से अपने देश की तुलना करते हुए कहा, हम दो देश हैं, हम एक देश नहीं हैं। इस देश के लिए हमारे पूर्वजों ने बलिदान दिया है। उन्होंने इस देश को बनाने के लिए बहुत ज्यादा त्याग किया है। हम जानते हैं कि इसकी कैसे रक्षा करना है। पाकिस्तानी सेना प्रमुख ने कहा, मेरे प्यारे भाइयों और बहनों, बेटों और बेटियों, पाकिस्तान की कहानी को मत भूलिए और इस पाकिस्तान की कहानी को अपनी अगली पीढ़ियों को जरूर सुनाइए, ताकि उनका पाकिस्तान से जुड़ाव कभी कमजोर न हो- चाहे वह तीसरी पीढ़ी हो, चौथी या फिर पांचवीं- उन्हें यह पता होना चाहिए कि पाकिस्तान उनके लिए क्या है।

13 लाख की मजबूत भारतीय सेना हमे डरा नहीं सकी-मुनीर

आसिम मुनीर यहीं नहीं रुके और विदेशों में रह रहे पाकिस्तानियों से कहा कि वे इस बात को न भूलें कि वे बेहतर विचारधारा और बेहतर संस्कृति से ताल्लुक रखते हैं। पाकिस्तान में बढ़ रहे आतंकी हमलों पर मुनीर ने कहा कि क्या आतंकी हमारे देश से हमारी किस्मत छीन सकते हैं? जब 13 लाख की मजबूत भारतीय सेना, हमारे नहीं डरा सकती तो कुछ आतंकी क्या हमें हरा सकते हैं?

बलूचिस्तान को बताया पाकिस्तान का गर्व

पाकिस्तानी सेना प्रमुख ने बलूचिस्तान में बढ़ रहे विद्रोह पर कहा कि बलूचिस्तान पाकिस्तान का गर्व है और आपको लगता है कि आप इसे आसानी से ले सकते हैं? आपकी दस पीढ़ियां भी इसे नहीं ले पाएंगी। हम जल्द ही आतंकियों को हरा देंगे।

अग्निवीर भर्ती : 25 अप्रैल तक कर सकते हैं आवेदन, जानिए पूरी डिटेल…

रायपुर- भारतीय सेना में अग्निवीर भर्ती की जारी अधिसूचना की तिथि में वृद्धि की गई है। इच्छुक युवा 12 मार्च से 25 अप्रैल 2025 तक आवेदन कर सकेंगे।

सेना भर्ती कार्यालय रायपुर के मुताबिक अग्निवीरों की भर्ती के लिए अधिसूचना जारी की जा चुकी है, जो कि इंडियन आर्मी की वेबसाइट www.joinindianarmy.nic.in पर उपलब्ध है। भर्ती के लिए 17/2 से 21 वर्ष के अभ्यर्थी अग्निवीर पद के लिए अपनी योग्यता अनुसार आवेदन कर सकते हैं।

अग्निवीर की भर्ती जनरल, तकनीकी, क्लर्क ट्रेडसमैन दसवी पास और ट्रेडसमैन आठवी पास, महिला सैन्य पुलिस और रेगुलर कैडर भर्ती, नर्सिंग सहयोगी और सिपाही फार्मा के पदो के लिए जारी की गई है. सेना में अग्निवीर भर्ती के लिए ऑनलाईन आवेदन की प्रक्रिया 12 मार्च से 25 अप्रैल 2025 तक खुली रहेगी.

इंडियन आर्मी की वेबसाइट www.joinindianarmy.nic.in पर जाकर आवेदन कर सकते है। अग्निवीर ऑनलाईन परीक्षा (CEE) के साथ टाइपिंग टेस्ट भी देना होगा, जो कि जून 2025 में होना सभावित है। आवेदन के लिए आवेदकों को एसबीआई के माध्यम से रूपये 250/- का शुल्क भी जमा करना पडेगा। किसी भी अन्य जानकारी और समस्या के लिए सेना भर्ती कार्यालय रायपुर के टेलीफोन नं. 0771-2965212/0771-2965214 पर संपर्क कर सकते हैं।

पाकिस्तान आर्मी चीफ जनरल असीम मुनीर को बैन कर सकता है यूएस, अमेरिकी कांग्रेस में बिल पेश

#us_bill_seeking_ban_on_pakistan_army_chief_asim_munir

पाकिस्‍तान के आर्मी चीफ जनरल असीम मुनीर की टेंशन बहुत बढ़ने जा रही है। जनरल असीम मुनीर को लेकर अमेरिका में एक बड़ा कदम उठाया गया है। अमेरिकी सांसद जो विल्‍सन और जिमी पेनेटा ने सोमवार को 'पाकिस्‍तान डेमोक्रेसी ऐक्‍ट' पेश किया है। इस बिल में इमरान खान समेत राजनीतिक व‍िरोधियों का उत्‍पीड़न करने के लिए पाकिस्‍तानी आर्मी चीफ पर ग्‍लोबल मैगनिटस्‍की ऐक्‍ट के तहत प्रतिबंध लगाने की मांग की गई है।

मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, अमेरिका के दक्षिण कैरोलिना से रिपब्लिकन सांसद जो विल्सन और कैलिफोर्निया के डेमोक्रेटिक सांसद जिमी पनेटा ने सोमवार को संसद में 'पाकिस्तान डेमोक्रेसी एक्ट' नामक विधेयक पेश किया। इस द्विदलीय विधेयक में आरोप लगाया गया है कि जनरल आसिम मुनीर जानबूझकर राजनीतिक विरोधियों के दमन और उन्हें कैद करने में शामिल हैं। इस विधेयक में पाकिस्तानी सेना प्रमुख पर प्रतिबंध लगाने की मांग की गई है। जिसके बाद पाकिस्तानी सेना प्रमुख अमेरिका में दाखिल नहीं हो सकेंगे और साथ ही उनकी अमेरिका में स्थित संपत्ति को भी जब्त कर लिया जाएगा। इस विधेयक में पाकिस्तानी सेना प्रमुख के साथ ही कई अन्य लोगों पर भी प्रतिबंध लगाने की मांग की गई है।

अगर यह बिल पारित हो जाता है तो अगले 180 दिनों के भीतर जनरल मुनीर पर प्रतिबंध लग सकता है। इससे उनके अमेरिका आने पर प्रतिबंध लगेगा और उनके अमेरिकी वीजा पर भी रोक लगाई जा सकती है। ग्लोबल मैग्निट्स्की ऐक्ट को 2012 में ओबामा प्रशासन के दौरान रूस के खिलाफ बनाया गया था, और अब इसका इस्तेमाल पाकिस्तान के आर्मी चीफ के खिलाफ किया जा सकता है।

इस व‍िधेयक में यह भी मांग की गई है कि उन लोगों की तलाश की जाए जो दमन में शामिल हैं और ऐसे लोगों पर भी इसी तरह के प्रतिबंध लगाने की मांग की गई है। इस विधेयक से राष्‍ट्रपति ट्रंप को यह शक्ति होगी कि वह पाकिस्‍तान में सैन्‍य शासन खत्‍म होने, लोकतंत्र की बहाली और सभी राजनीतिक बंदियों की रिहाई के बाद इन प्रतिबंधों को हटा सकते हैं। सांसद जो विल्‍सन लंबे समय से मांग कर रहे हैं कि इमरान खान को र‍िहा किया जाए जिन्‍हें अगस्‍त 2023 में अरेस्‍ट किया गया था। उन्‍होंने आरोप लगाया है कि इमरान खान को जेल भेजना उनके साथ अन्‍याय है।

बांग्लादेश में नया विवाद, हसीना विरोधी छात्र नेता ने सेना को लेकर किया बड़ा दावा, भारत का भी आया नाम

#bangladesh_army_chief_did_not_want_muhammad_yunus

बांग्लादेश में एक नया विवाद शुरू हो गया है। बांग्लादेश में शेख हसीना को सत्ता से हटाने के लिए आंदोलन करने वाले छात्र नेताओं और सेना के बीच तनाव बढ़ता जा रहा है।बांग्लादेश की नई गठित जातीय नागरिक पार्टी (एनसीपी) के मुख्य आयोजक हसनत अब्दुल्ला ने देश के सेना प्रमुख के बारे में एक बड़ा दावा किया है। एक वीडियो में हसनत ने कहा कि सेना प्रमुख जनरल वकार उज-जमान नोबेल पुरस्कार विजेता मोहम्मद यूनुस को मुख्य सलाहकार नियुक्त करने के इच्छुक नहीं थे।

एक वायरल वीडियो में हसनत अब्दुल्ला ने कहा कि सेना प्रमुख ने मोहम्मद यूनुस की साख पर सवाल उठाते हुए उन्हें इस भूमिका के लिए उपयुक्त नहीं माना। जनरल जमान ने यह भी कहा कि यूनुस का नोबेल पुरस्कार विजेता होना और उनकी सुधारवादी छवि के बावजूद, वह इस जिम्मेदारी के लिए सही व्यक्ति नहीं थे। सेना प्रमुख ने देश की बागडोर सही हाथों में सौंपने की जरूरत पर जोर दिया था।

द हिन्दू की रिपोर्ट के मुताबिक, नेशनल सिटिजन पार्टी के कार्यकर्ताओं ने ढाका यूनिवर्सिटी में प्रदर्शन करते हुए सेना पर आरोप लगाया कि सेना, शेख हसीना की पार्टी अवामी लीग को फिर से सत्ता में लाने की कोशिश कर रही है। हसनत ने दावा किया कि पाँच अगस्त को अवामी लीग पर प्रतिबंध लगा दिया गया था। उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि बांग्लादेश का सैन्य नेतृत्व भारत के प्रभाव में अवामी लीग को फिर से मज़बूत करने की कोशिश कर रहा है।

बता दें कि अवामी लीग शेख़ हसीना की पार्टी है और जमात-ए-इस्लामी बांग्लादेश समेत कई राजनीतिक धड़े अवामी लीग के चुनाव लड़ने पर प्रतिबंध लगाने की मांग कर रहे हैं।अब्दुल्ला ने फेसबुक पर लिखा कि भारत के इशारे पर अवामी लीग की मदद की जा रही है। अब्दुल्ला ने सेना को चेताते हुए कहा कि आर्मी को छावनी के अंदर तक ही रहना चाहिए। बांग्लादेश में सेना का राजनीति में कोई हस्तक्षेप स्वीकार नहीं किया जाएगा।

इस पर सेना ने अपने बयान कहा कि एनसीपी के आरोप सिर्फ एक राजनीतिक स्टंट हैं। सेना पर राजनीतिक हस्तक्षेप के इस आरोप से बांग्लादेश में सियासी तनाव बढ़ गया है।

बता दें कि बांग्लादेश की सेना के अंदर दो गुट बने हुए हैं। एक गुट जमात-ए-इस्लामी जैसे संगठनों का समर्थन करता है, जबकि दूसरा अवामी लीग के साथ जुड़ा हुआ है। इन गुटों के बीच उभरे तनाव ने सेना के अंदर मतभेदों को और गहरा दिया है, जिससे स्थिति अस्थिर हो गई है।

दुश्मनों की नहीं लगेगी “बुरी नजर”, सेना के पास होंगी दुनिया की सबसे ज्यादा रेंज वाली तोपें

#indian_army_will_get_indigenous_atags_artillery_gun

रक्षा क्षेत्र में भारत सरकार ने एक महत्त्वपूर्ण फैसला लिया है।भारतीय सेना के लिए 155 एमएम कैलिबर की अडवांस टोड आर्टिलरी गन सिस्टम (ATAGS) की खरीद को कैबिनेट कमिटी ऑन सिक्योरिटी ने मंजूरी दे दी है। ये स्वदेशी गन सिस्टम है जिसे डीआरडीओ ने डिवेलप किया है। भारतीय सेना के लिए इस गन सिस्टम की डील करीब 7000 करोड़ रुपये की है। डील 307 हावित्जर की है। सरकार की इस पहल को आर्टिलरी गन निर्माण में आत्मनिर्भरता की दिशा में एक बड़ा कदम माना जा रहा है।

यह गन पूरी तरह से स्वदेशी हैं। कुल 307 हावित्जर तोपों की खरीद स्वदेशी कंपनी से की जा रही है। इन तोपों की मारक क्षमता दुनिया में सबसे ज्यादा है। इसके अलावा सेना की 15 आर्टिलरी रेजिमेंटों को हथियार देने के लिए 327 गन-टोइंग व्हीकल्स की डील भी की जाएगी। टीओआई ने सूत्रों के हवाले से बताया है कि इस डील पर अगले हफ्ते ही साइन होने की उम्मीद है।

जो तोपें सेना को दी जाएंगी, उन ATAGS को देश में डिजाइन और डेवलेप किया गया है। डिफेंस रिसर्च डेवलपमेंट ऑर्गेनाइजेशन (डीआरडीओ) ने इसे डेवलेप किया है, जबकि इसका उत्पादन प्राइवेट कंपनी भारत फोर्ज और टाटा एडवांस्ड सिस्टम्स करेंगे। भारत अब डिफेंस सेक्टर में प्राइवेट कंपनियों को आगे बढ़ रहा है, इसलिए इन 307 तोपों का उत्पादन दोनों प्राइवेट कंपनियों को सौंप दिया गया है। जहां भारत फोर्ज 60 फीसदी तोपों का उत्पादन करेगी, वहीं टाटा एडवांस्ड 40 फीसदी तोपें बनाएगी।

आर्टिलरी गन में इस्तेमाल 65 फीसदी से अधिक पार्ट्स को घरेलू स्तर पर तैयार किया गया है। इनमें बैरल, ब्रीच मैकेनिज्म, फायरिंग, रिकॉइल सिस्टम और गोला-बारूद हैंडलिंग मैकेनिज्म शामिल हैं। इस प्रोजेक्ट से न केवल भारत के रक्षा उद्योग को मजबूत मिलेगी बल्कि विदेश पर निर्भरता भी कम होगी। ATAGS भारतीय सेना में पुरानी 105 मिमी और 130 मिमी की तोपों की जगह लेंगी। इससे सेना का तोपखाना आधुनिक होगा।

करगिल युद्ध के बाद सेना का आधुनिकीकरण करने की दिशा में कदम बढ़ाए गए। सेना की आर्टिलरी यानी तोपखाने को और मजबूत किया गया और स्वदेशी तोपों को भी सेना में शामिल किया गया। भारतीय सेना के पास अब 155 Mm अल्ट्रा लाइट हॉवित्जर M-777 गन भी हैं। इसकी खास बात ये है कि ये इतनी हल्की है कि हेलिकॉप्टर के जरिए हाई ऑल्टिट्यूट इलाके में पहुंचाया जा सकता है।

चीन-पाक को लेकर सेना प्रमुख का बड़ा बयान, जानें क्या कहा?

#army_chief_on_security_china_pakistan

भारतीय सेना प्रमुख जनरल उपेंद्र द्विवेदी ने चीन और पाकिस्तान को लेकर बड़ा बयान दिया है। सेना प्रमुख ने चीन और पाकिस्तान की बढ़ती नजदीकियों को लेकर कहा कि आज उनकी मिलीभगत ने खतरा और बढ़ा दिया है। साथ ही उन्होंने चीन के एक प्रमुख आर्थिक और सामरिक शक्ति के रूप में उभरने से जटिलता के बढ़ने की बात कही है। उन्होंने यह भी कहा कि चीन नियम-आधारित व्यवस्था को चुनौती दे रहा है और विघटनकारी गतिविधियों में आगे बढ़ रहा है।

सेना प्रमुख ने दिल्ली में जनरल बिपिन रावत मेमोरियल लेक्चर में यह बात कही।जनरल द्विवेदी ने कहा,देश कई तरह के प्रयासों के साथ काम कर रहा है, हमें इस बात का ध्यान रखना चाहिए कि सुरक्षा के क्षेत्र में ‘किसी उभरती शक्ति द्वारा किसी मौजूदा शक्ति को हटाने के लिए युद्ध की आशंका’ में फंसना बहुत आसान है। उन्होंने कहा, क्या हम सामाजिक क्षेत्र में अनिवार्य आवश्यकताओं वाले देश के रूप में इस आशंका में फंसने का जोखिम उठा सकते हैं? साथ ही, क्या हम इस तथ्य को नजरअंदाज कर सकते हैं कि हम एक बेहद अस्थिर पड़ोस में रहते।

सेना प्रमुख ने कहा, जैसा कि जनरल रावत ने कहा था कि जब आपके उत्तर और पश्चिम में अस्थिर सीमाएं होती हैं, तो आप नहीं जानते कि लड़ाई किस तरफ से शुरू होगी और कहां खत्म होगी। इसलिए, आपको दोनों मोर्चों के लिए तैयार रहना चाहिए। आज, उच्च स्तर पर मिलीभगत ने खतरे को और बढ़ा दिया है।

जनरल द्विवेदी ने चीन की गतिविधियों पर चिंता जताते हुए उन्होंने कहा कि चीन मौजूदा विश्व व्यवस्था को चुनौती दे रहा है। उन्होंने कहा कि चीन के एक प्रमुख आर्थिक और सामरिक शक्ति के रूप में उभरने से जटिलता बढ़ रही है, प्रतिस्पर्धा पैदा हो रही और ग्लोबल साउथ का नेतृत्व करने के भारत के प्रयासों में बाधा आ रही है।

इससे पहले आठ मार्च को भी जनरल द्विवेदी ने चीन और पाकिस्तान की करीबी का जिक्र किया था। उन्होंने कहा कि दोनों देशों के बीच काफी हद तक मिलीभगत है। इसे स्वीकार किया जाना चाहिए। एक कार्यक्रम में उन्होंने कहा कि चीन और पाकिस्तान की करीबी का मतलब है कि दोनों मोर्चों पर वास्तविक खतरा है। पाकिस्तान में अधिकांश उपकरण चीनी मूल के हैं। इसलिए यह दो-मोर्चे का खतरा और एक वास्तविकता है।

श्रीनगर पहुंचे सेना प्रमुख, करेंगे सुरक्षा स्थिति की समीक्षा, पहलगाम हमले के घायलों से मिलने राहुल भी पहुंच रहे अनंतनाग

#armychiefupendradwivedirahul_gandhi

जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले में पाकिस्तान कनेक्शन सामने आने के बाद भारत ने सख्त रुख अपनाते हुए पड़ोसी देश पर कई प्रहार किए हैं। जिसमें सिंधु नदी समझौता स्थगित करना भी शामिल हैष इस मुद्दे पर शुक्रवार को गृह मंत्री अमित शाह अपने आवास पर एक बैठक करने जा रहे हैं। इस बैठक में जलशक्ति मंत्री सीआर पाटिल समेत कई सीनियर केंद्रीय मंत्री शामिल हो सकते हैं। इस बीच, भारत ने पाकिस्तान को औपचारिक पत्र लिखकर सिंधु जल संधि को निलंबित करने की सूचना दे दी है। वहीं सेना प्रमुख जनरल उपेंद्र द्विवेदी भी आज श्रीनगर पहुंच गए हैं। वह 15 कोर में सुरक्षा बैठक की समीक्षा करेंगे। इसके साथ ही वह आतंकी हमले वाली जगह पर भी जाएंगे। वहीं कांग्रेस नेता राहुल गांधी भी जम्मू-कश्मीर जाएंगे।

आर्मी चीफ पहुंचे श्रीनगर

पहलगाम में 26 निर्दोष पर्यटकों की जान लेने वाले आतंकवादियों के खिलाफ सुरक्षाबल एक्टिव हो गए हैं। आर्मी चीफ जनरल उपेंद्र द्विवेदी श्रीनगर पहुंच चुके हैं। वे घाटी में सुरक्षा की समीक्षा करने के साथ ही आतंकवादियों और उनके गढ़ को तबाह करने की रणनीति भी बनाएंगे। उनका कश्मीर घाटी में तैनात वरिष्ठ सैन्य कमांडरों और अन्य सुरक्षा एजेंसियों के अधिकारियों के साथ बैठक करने का कार्यक्रम है। वह घाटी में चल रही सुरक्षा स्थिति और पाकिस्तान सेना द्वारा नियंत्रण रेखा (लाइन ऑफ़ कंट्रोल) पर संघर्ष विराम का उल्लंघन करने के प्रयासों की समीक्षा करेंगे।

यूएस दौरे रद्द कर देश लौटे राहुल गांधी

पहलगाम आतंकी हमले को लेकर कांग्रेस नेता राहुल गांधी शुक्रवार को जम्मू-कश्मीर का दौरा करेंगे। राहुल गांधी अमेरिका की यात्रा पर थे लेकिन यात्रा बीच में छोड़कर गुरुवार सुबह वे दिल्ली लौट आए थे। राहुल गांधी से पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने भी अपनी-अपनी विदेश यात्रा बीच में रद्द कर दी थी। पीएम मोदी सऊदी अरब तो सीतारमण अमेरिका के दौरे पर थीं।

गुस्से में देश

पहलगाम आतंकी हमले में हिंदुओं की बर्बर हत्या की गई। इससे लोगों का आक्रोश बढ़ता जा रहा है। गुरुवार को देशभर में प्रदर्शन हुए। शुक्रवार को भी देश भर में प्रदर्शन होगा। शुक्रवार को भी दिल्ली बंद का ऐलान किया गया है। दिल्ली में पाकिस्तानी उच्चायोग के बाहर लोगों ने प्रदर्शन किया। करीब 300 लोगों ने उच्चायोग के समक्ष नारेबाजी की।

पाकिस्तानी सेना ने एलओसी पर की फायरिंग, भारत ने पड़ोसी देश की चौकियों से हुई गोलीबारी का दिया जवाब

#pakistan_army_firing_on_loc

पहलगाम हमले के बाद भारत और पाकिस्तानी सेना के बीच तनातनी शुरू हो गई है। पाकिस्तान की सेना ने कुछ जगहों पर छोटे हथियारों से गोलीबारी शुरू की। भारतीय सेना ने इसका करारा जवाब दिया। पहलगाम आतंकी हमले के बाद से ही पाकिस्तान डरा हुआ है। वह भारत की जवाबी कार्रवाई के डर से छटपटा रहा है। इस बीच पड़ोसी मुल्क की ओर से फायरिंग की गई है।

गुरुवार की रात को पाकिस्तानी आर्मी ने संघर्ष विराम का उल्लंघन करते हुए भारत के 8 चौकियों पर रात भर फायरिंग करती रही। गोलीबारी छोटे हथियारों के जरिए की गई। भारतीय सेना के अधिकारी ने बताया कि भारतीय सेना ने इसका प्रभावी ढंग से जवाब दिया। फिलहाल किसी के हताहत होने की कोई खबर नहीं है।

इससे पहले पाकिस्तान ने गुरुवार को भारत के साथ शिमला समझौते और अन्य द्विपक्षीय समझौतों को स्थगित कर दिया, सभी प्रकार के व्यापार पर रोक लगा दी और भारतीय एयरलाइन के लिए अपने हवाई क्षेत्र को बंद कर दिया। इसके साथ ही उसने कहा कि सिंधु जल संधि के तहत उसके लिए निर्धारित पानी के प्रवाह को रोकने या परिवर्तित करने का कोई भी प्रयास युद्ध छेड़ने के समान माना जाएगा।

पाकिस्तान ने भारत की ओर से की गई जवाबी कार्रवाई के बाद ये कदम उठाया। दरअसल, पहलगाम में आतंकवादी हमले के बाद भारत ने जवाब में पाकिस्तान पर कई तरह के प्रतिबंध लगा दिया है। इसमें सिंधु जल समझौता, पाकिस्तानियों के वीजा रद्द और भारत खाली करने के आदेश से लेकर कई तरह के प्रतिबंध शामिल हैं। वहीं, पीएम मोदी ने गुरुवार को साफ कर दिया कि इस कुकृत्य के जिम्मेदार को ‘मिट्टी में मिला देंगे।’ इस हमले से भारत अभी उबर नहीं पाया था कि पाकिस्तान ने अंतरराष्ट्रीय सीमा पर नापाक हरकत कर दी।

पहलगाम हमले के बाद क्यों खौफ में पाकिस्तान? सीमा के पास पीएएफ की बड़ी हलचल

#pakistanarmyfears

जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए खौफनाक आतंकी हमले के बाद पाकिस्तान में खौफ का माहौल है। शायद पाकिस्तान को पुलवामा हमले के बाद हुए भारतीय एक्शन की याद ताजा हो गई है। आतंकी हमले के तुरंत बाद पाकिस्तानी सेना ने अपने एयरबेस की सुरक्षा बढ़ा दी है। मंगलवार रात को सेना के बड़े-बड़े अधिकारी एयरबेस की मॉनिटरिंग में लगे रहे। भारत की कार्रवाई के खौफ में पाकिस्तानी वायुसेना अलर्ट पर हैं। फ्लाइट रेडार डेटा में दर्ज पाकिस्तानी वायुसेना की असामान्य गतिविधियों से इसका पता चलता है।

फ्लाइट रडार 24 में दर्ज डेटा के मुताबिक पहलगाम हमले के तुरंत बाद रावलपिंडी और लाहौर से सेना के 2 फाइटर जेट को उड़ते देखा गया। एक फाइटर जेट तो एलओसी के आसपास चक्कर लगा रहा था। अहमदपुर ईस्ट के पास आखिरी बार पाकिस्तानी फाइटर जेट को उड़ान भरते देखा गया। सीमा पर पाकिस्तानी वायुसेना के जिन विमानों को उड़ान भरते देखा गया है, उनमें PAF198 और PAF101 नंबर की फ्लाइट है। पाकिस्तान की वायुसेना दोनों ही विमानों का इस्तेमाल अक्सर खुफिया अभियानों के लिए करती रही है।

सीमा पर पाक सेना की उपस्थिति बढ़ी

रिपोर्ट के अनुसार, पाकिस्तान एयरपोर्स ने भारतीय सीमा के पास अपनी उपस्थिति बढ़ानी शुरू कर दी है। पाकिस्तान ने क्षेत्र में हवाई निगरानी को बढ़ाने के लिए साब एरिए एयरबॉर्न अर्ली वार्निंग एंड कंट्रोल एयरक्राफ्ट को तैनात किया है। एरिए सिस्टम एयर क्राफ्ट, मिसाइल और लंबी दूरी पर जमीनी लक्ष्यों का पता लगाने में सक्षम है, जो पाकिस्तानी वायुसेना को त्वरित कार्रवाई करने की क्षमता के लिए तैयार करता है।

सर्जिकल स्ट्राइक का डर

पहलगाम में आतंकवादी हमले के बाद गृह मंत्री अमित शाह ने बयान जारी किया है। शाह का कहना है कि एक भी आंतकी बख्शे नहीं जाएंगे। शाह खुद जम्मू कश्मीर पहुंच गए हैं। वहीं से हालात का जायजा ले रहे हैं। ऐसे में पाकिस्तान की धड़कने बढ़ी हुई है। पाकिस्तानी पत्रकार और एनालिस्ट कमर चीमा ने चेतावनी दी है कि भारत इस हमले का जवाब दे सकता है। उन्होंने कहा, ‘पहलगाम हमले के बाद भारत की ओर से सर्जिकल स्ट्राइक या एयर स्ट्राइक जैसी कार्रवाई हो सकती है। भारत इस हमले को हल्के में नहीं लेगा।

बता दें कि 2019 में पुलवामा में पाकिस्तान समर्थित आतंकवादियों ने हमला किया था, जिसके बाद भारत ने पीओके के इलाके में सर्जिकल स्ट्राइक के जरिए 300 आतंकवादियों को ढेर कर दिया था। इस बार भी पाकिस्तान की सेना को फिर से सर्जिकल स्ट्राइक का डर सताने लगा है।

अग्निवीर के लिए ऑनलाइन आवेदन की तारीख बढ़ी, सेना की अपील – भर्ती के लिए झांसे में ना आएं…

रायपुर-  भारतीय थल सेना ने अग्निवीर की भर्ती के लिए अधिसूचना जारी की है, जिसकी विस्तृत जानकारी www.joinindianarmy.nic.in पर उपलब्ध है. अग्निवीर की भर्ती जनरल, तकनीकी, कर्लक, ट्रेडमेन (8वीं एवं 10वीं) महिला सैन्य पुलिस और रेगुलर कैडर मर्ती धर्म गुरू, नर्सिंग सहयोगी और सिपाही फार्मा के पदों के लिए जारी की गई है. सेना में भर्ती के लिए अब ऑनलाइन आवेदन की प्रक्रिया 25 अप्रैल 2025 तक बढ़ा दी गई है.

आवेदकों को यदि ऑनलाइन आवेदन करने में किसी भी प्रकार की समस्या आ रही हो तो वे सेना भर्ती कार्यालय के दूरमाष क्रमांक 0771-2965212 अथवा 0771-2965214 पर संपर्क कर सकते हैं. भारतीय थल सेना ने कहा है कि सेना में चयन निष्पक्ष, पारदर्शी एवं योग्यता के आधार पर ही किया जाता है इसलिए आवेदन भर्ती के लिए किसी भी अनाधिकृत व्यक्तियों के झांसे में ना आएं.

हम हिंदुओं से अलग, बच्चों को पाकिस्तान की कहानी सुनाएं', पाक सेना प्रमुख ने उगला भारत के खिलाफ जहर

#pakistanarmychiefasimmunirtargetsindia

पाकिस्तान के सेना प्रमुख असीम मुनीर ने भारत के खिलाफ जहर उगला है। बुधवार को इस्लामाबाद में प्रवासी पाकिस्तानी सम्मेलन में पाक सेना प्रमुख असीम मुनीर ने एक बार फिर भारत और हिंदू धर्म को लेकर जहरीला बयान दिया।असीम मुनीर ने एक बार फिर ‘टू नेशन थ्योरी’ को दोहराते हुए कहा कि पाकिस्तान की नींव इस्लाम के कलमे पर रखी गई है और हम हर मामले में हिंदुओं से अलग हैं। उन्होंने कहा कि पाकिस्तान एक धार्मिक सोच की बुनियाद पर बना है।

जनरल मुनीर ने विदेशी पाकिस्तानियों से कहा कि वे देश के राजदूत हैं और उन्हें यह नहीं भूलना चाहिए कि वे उच्च विचारधारा और संस्कृति" से ताल्लुक रखते हैं। उन्होंने कहा कि आपको अपने बच्चों को पाकिस्तान की कहानी जरूर बतानी चाहिए। हमारे पूर्वजों ने सोचा था कि हम जीवन के हर पहलू में हिंदुओं से अलग हैं। हमारे धर्म, हमारे रीति-रिवाज, परंपराएं, विचार और महत्वाकांक्षाएं अलग हैं। यही द्वि-राष्ट्र सिद्धांत की नींव थी जो रखी गई थी।

पाकिस्तान की कहानी याद रखने की अपील की

इसके साथ ही उन्होंने भारत से अपने देश की तुलना करते हुए कहा, हम दो देश हैं, हम एक देश नहीं हैं। इस देश के लिए हमारे पूर्वजों ने बलिदान दिया है। उन्होंने इस देश को बनाने के लिए बहुत ज्यादा त्याग किया है। हम जानते हैं कि इसकी कैसे रक्षा करना है। पाकिस्तानी सेना प्रमुख ने कहा, मेरे प्यारे भाइयों और बहनों, बेटों और बेटियों, पाकिस्तान की कहानी को मत भूलिए और इस पाकिस्तान की कहानी को अपनी अगली पीढ़ियों को जरूर सुनाइए, ताकि उनका पाकिस्तान से जुड़ाव कभी कमजोर न हो- चाहे वह तीसरी पीढ़ी हो, चौथी या फिर पांचवीं- उन्हें यह पता होना चाहिए कि पाकिस्तान उनके लिए क्या है।

13 लाख की मजबूत भारतीय सेना हमे डरा नहीं सकी-मुनीर

आसिम मुनीर यहीं नहीं रुके और विदेशों में रह रहे पाकिस्तानियों से कहा कि वे इस बात को न भूलें कि वे बेहतर विचारधारा और बेहतर संस्कृति से ताल्लुक रखते हैं। पाकिस्तान में बढ़ रहे आतंकी हमलों पर मुनीर ने कहा कि क्या आतंकी हमारे देश से हमारी किस्मत छीन सकते हैं? जब 13 लाख की मजबूत भारतीय सेना, हमारे नहीं डरा सकती तो कुछ आतंकी क्या हमें हरा सकते हैं?

बलूचिस्तान को बताया पाकिस्तान का गर्व

पाकिस्तानी सेना प्रमुख ने बलूचिस्तान में बढ़ रहे विद्रोह पर कहा कि बलूचिस्तान पाकिस्तान का गर्व है और आपको लगता है कि आप इसे आसानी से ले सकते हैं? आपकी दस पीढ़ियां भी इसे नहीं ले पाएंगी। हम जल्द ही आतंकियों को हरा देंगे।

अग्निवीर भर्ती : 25 अप्रैल तक कर सकते हैं आवेदन, जानिए पूरी डिटेल…

रायपुर- भारतीय सेना में अग्निवीर भर्ती की जारी अधिसूचना की तिथि में वृद्धि की गई है। इच्छुक युवा 12 मार्च से 25 अप्रैल 2025 तक आवेदन कर सकेंगे।

सेना भर्ती कार्यालय रायपुर के मुताबिक अग्निवीरों की भर्ती के लिए अधिसूचना जारी की जा चुकी है, जो कि इंडियन आर्मी की वेबसाइट www.joinindianarmy.nic.in पर उपलब्ध है। भर्ती के लिए 17/2 से 21 वर्ष के अभ्यर्थी अग्निवीर पद के लिए अपनी योग्यता अनुसार आवेदन कर सकते हैं।

अग्निवीर की भर्ती जनरल, तकनीकी, क्लर्क ट्रेडसमैन दसवी पास और ट्रेडसमैन आठवी पास, महिला सैन्य पुलिस और रेगुलर कैडर भर्ती, नर्सिंग सहयोगी और सिपाही फार्मा के पदो के लिए जारी की गई है. सेना में अग्निवीर भर्ती के लिए ऑनलाईन आवेदन की प्रक्रिया 12 मार्च से 25 अप्रैल 2025 तक खुली रहेगी.

इंडियन आर्मी की वेबसाइट www.joinindianarmy.nic.in पर जाकर आवेदन कर सकते है। अग्निवीर ऑनलाईन परीक्षा (CEE) के साथ टाइपिंग टेस्ट भी देना होगा, जो कि जून 2025 में होना सभावित है। आवेदन के लिए आवेदकों को एसबीआई के माध्यम से रूपये 250/- का शुल्क भी जमा करना पडेगा। किसी भी अन्य जानकारी और समस्या के लिए सेना भर्ती कार्यालय रायपुर के टेलीफोन नं. 0771-2965212/0771-2965214 पर संपर्क कर सकते हैं।

पाकिस्तान आर्मी चीफ जनरल असीम मुनीर को बैन कर सकता है यूएस, अमेरिकी कांग्रेस में बिल पेश

#us_bill_seeking_ban_on_pakistan_army_chief_asim_munir

पाकिस्‍तान के आर्मी चीफ जनरल असीम मुनीर की टेंशन बहुत बढ़ने जा रही है। जनरल असीम मुनीर को लेकर अमेरिका में एक बड़ा कदम उठाया गया है। अमेरिकी सांसद जो विल्‍सन और जिमी पेनेटा ने सोमवार को 'पाकिस्‍तान डेमोक्रेसी ऐक्‍ट' पेश किया है। इस बिल में इमरान खान समेत राजनीतिक व‍िरोधियों का उत्‍पीड़न करने के लिए पाकिस्‍तानी आर्मी चीफ पर ग्‍लोबल मैगनिटस्‍की ऐक्‍ट के तहत प्रतिबंध लगाने की मांग की गई है।

मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, अमेरिका के दक्षिण कैरोलिना से रिपब्लिकन सांसद जो विल्सन और कैलिफोर्निया के डेमोक्रेटिक सांसद जिमी पनेटा ने सोमवार को संसद में 'पाकिस्तान डेमोक्रेसी एक्ट' नामक विधेयक पेश किया। इस द्विदलीय विधेयक में आरोप लगाया गया है कि जनरल आसिम मुनीर जानबूझकर राजनीतिक विरोधियों के दमन और उन्हें कैद करने में शामिल हैं। इस विधेयक में पाकिस्तानी सेना प्रमुख पर प्रतिबंध लगाने की मांग की गई है। जिसके बाद पाकिस्तानी सेना प्रमुख अमेरिका में दाखिल नहीं हो सकेंगे और साथ ही उनकी अमेरिका में स्थित संपत्ति को भी जब्त कर लिया जाएगा। इस विधेयक में पाकिस्तानी सेना प्रमुख के साथ ही कई अन्य लोगों पर भी प्रतिबंध लगाने की मांग की गई है।

अगर यह बिल पारित हो जाता है तो अगले 180 दिनों के भीतर जनरल मुनीर पर प्रतिबंध लग सकता है। इससे उनके अमेरिका आने पर प्रतिबंध लगेगा और उनके अमेरिकी वीजा पर भी रोक लगाई जा सकती है। ग्लोबल मैग्निट्स्की ऐक्ट को 2012 में ओबामा प्रशासन के दौरान रूस के खिलाफ बनाया गया था, और अब इसका इस्तेमाल पाकिस्तान के आर्मी चीफ के खिलाफ किया जा सकता है।

इस व‍िधेयक में यह भी मांग की गई है कि उन लोगों की तलाश की जाए जो दमन में शामिल हैं और ऐसे लोगों पर भी इसी तरह के प्रतिबंध लगाने की मांग की गई है। इस विधेयक से राष्‍ट्रपति ट्रंप को यह शक्ति होगी कि वह पाकिस्‍तान में सैन्‍य शासन खत्‍म होने, लोकतंत्र की बहाली और सभी राजनीतिक बंदियों की रिहाई के बाद इन प्रतिबंधों को हटा सकते हैं। सांसद जो विल्‍सन लंबे समय से मांग कर रहे हैं कि इमरान खान को र‍िहा किया जाए जिन्‍हें अगस्‍त 2023 में अरेस्‍ट किया गया था। उन्‍होंने आरोप लगाया है कि इमरान खान को जेल भेजना उनके साथ अन्‍याय है।

बांग्लादेश में नया विवाद, हसीना विरोधी छात्र नेता ने सेना को लेकर किया बड़ा दावा, भारत का भी आया नाम

#bangladesh_army_chief_did_not_want_muhammad_yunus

बांग्लादेश में एक नया विवाद शुरू हो गया है। बांग्लादेश में शेख हसीना को सत्ता से हटाने के लिए आंदोलन करने वाले छात्र नेताओं और सेना के बीच तनाव बढ़ता जा रहा है।बांग्लादेश की नई गठित जातीय नागरिक पार्टी (एनसीपी) के मुख्य आयोजक हसनत अब्दुल्ला ने देश के सेना प्रमुख के बारे में एक बड़ा दावा किया है। एक वीडियो में हसनत ने कहा कि सेना प्रमुख जनरल वकार उज-जमान नोबेल पुरस्कार विजेता मोहम्मद यूनुस को मुख्य सलाहकार नियुक्त करने के इच्छुक नहीं थे।

एक वायरल वीडियो में हसनत अब्दुल्ला ने कहा कि सेना प्रमुख ने मोहम्मद यूनुस की साख पर सवाल उठाते हुए उन्हें इस भूमिका के लिए उपयुक्त नहीं माना। जनरल जमान ने यह भी कहा कि यूनुस का नोबेल पुरस्कार विजेता होना और उनकी सुधारवादी छवि के बावजूद, वह इस जिम्मेदारी के लिए सही व्यक्ति नहीं थे। सेना प्रमुख ने देश की बागडोर सही हाथों में सौंपने की जरूरत पर जोर दिया था।

द हिन्दू की रिपोर्ट के मुताबिक, नेशनल सिटिजन पार्टी के कार्यकर्ताओं ने ढाका यूनिवर्सिटी में प्रदर्शन करते हुए सेना पर आरोप लगाया कि सेना, शेख हसीना की पार्टी अवामी लीग को फिर से सत्ता में लाने की कोशिश कर रही है। हसनत ने दावा किया कि पाँच अगस्त को अवामी लीग पर प्रतिबंध लगा दिया गया था। उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि बांग्लादेश का सैन्य नेतृत्व भारत के प्रभाव में अवामी लीग को फिर से मज़बूत करने की कोशिश कर रहा है।

बता दें कि अवामी लीग शेख़ हसीना की पार्टी है और जमात-ए-इस्लामी बांग्लादेश समेत कई राजनीतिक धड़े अवामी लीग के चुनाव लड़ने पर प्रतिबंध लगाने की मांग कर रहे हैं।अब्दुल्ला ने फेसबुक पर लिखा कि भारत के इशारे पर अवामी लीग की मदद की जा रही है। अब्दुल्ला ने सेना को चेताते हुए कहा कि आर्मी को छावनी के अंदर तक ही रहना चाहिए। बांग्लादेश में सेना का राजनीति में कोई हस्तक्षेप स्वीकार नहीं किया जाएगा।

इस पर सेना ने अपने बयान कहा कि एनसीपी के आरोप सिर्फ एक राजनीतिक स्टंट हैं। सेना पर राजनीतिक हस्तक्षेप के इस आरोप से बांग्लादेश में सियासी तनाव बढ़ गया है।

बता दें कि बांग्लादेश की सेना के अंदर दो गुट बने हुए हैं। एक गुट जमात-ए-इस्लामी जैसे संगठनों का समर्थन करता है, जबकि दूसरा अवामी लीग के साथ जुड़ा हुआ है। इन गुटों के बीच उभरे तनाव ने सेना के अंदर मतभेदों को और गहरा दिया है, जिससे स्थिति अस्थिर हो गई है।

दुश्मनों की नहीं लगेगी “बुरी नजर”, सेना के पास होंगी दुनिया की सबसे ज्यादा रेंज वाली तोपें

#indian_army_will_get_indigenous_atags_artillery_gun

रक्षा क्षेत्र में भारत सरकार ने एक महत्त्वपूर्ण फैसला लिया है।भारतीय सेना के लिए 155 एमएम कैलिबर की अडवांस टोड आर्टिलरी गन सिस्टम (ATAGS) की खरीद को कैबिनेट कमिटी ऑन सिक्योरिटी ने मंजूरी दे दी है। ये स्वदेशी गन सिस्टम है जिसे डीआरडीओ ने डिवेलप किया है। भारतीय सेना के लिए इस गन सिस्टम की डील करीब 7000 करोड़ रुपये की है। डील 307 हावित्जर की है। सरकार की इस पहल को आर्टिलरी गन निर्माण में आत्मनिर्भरता की दिशा में एक बड़ा कदम माना जा रहा है।

यह गन पूरी तरह से स्वदेशी हैं। कुल 307 हावित्जर तोपों की खरीद स्वदेशी कंपनी से की जा रही है। इन तोपों की मारक क्षमता दुनिया में सबसे ज्यादा है। इसके अलावा सेना की 15 आर्टिलरी रेजिमेंटों को हथियार देने के लिए 327 गन-टोइंग व्हीकल्स की डील भी की जाएगी। टीओआई ने सूत्रों के हवाले से बताया है कि इस डील पर अगले हफ्ते ही साइन होने की उम्मीद है।

जो तोपें सेना को दी जाएंगी, उन ATAGS को देश में डिजाइन और डेवलेप किया गया है। डिफेंस रिसर्च डेवलपमेंट ऑर्गेनाइजेशन (डीआरडीओ) ने इसे डेवलेप किया है, जबकि इसका उत्पादन प्राइवेट कंपनी भारत फोर्ज और टाटा एडवांस्ड सिस्टम्स करेंगे। भारत अब डिफेंस सेक्टर में प्राइवेट कंपनियों को आगे बढ़ रहा है, इसलिए इन 307 तोपों का उत्पादन दोनों प्राइवेट कंपनियों को सौंप दिया गया है। जहां भारत फोर्ज 60 फीसदी तोपों का उत्पादन करेगी, वहीं टाटा एडवांस्ड 40 फीसदी तोपें बनाएगी।

आर्टिलरी गन में इस्तेमाल 65 फीसदी से अधिक पार्ट्स को घरेलू स्तर पर तैयार किया गया है। इनमें बैरल, ब्रीच मैकेनिज्म, फायरिंग, रिकॉइल सिस्टम और गोला-बारूद हैंडलिंग मैकेनिज्म शामिल हैं। इस प्रोजेक्ट से न केवल भारत के रक्षा उद्योग को मजबूत मिलेगी बल्कि विदेश पर निर्भरता भी कम होगी। ATAGS भारतीय सेना में पुरानी 105 मिमी और 130 मिमी की तोपों की जगह लेंगी। इससे सेना का तोपखाना आधुनिक होगा।

करगिल युद्ध के बाद सेना का आधुनिकीकरण करने की दिशा में कदम बढ़ाए गए। सेना की आर्टिलरी यानी तोपखाने को और मजबूत किया गया और स्वदेशी तोपों को भी सेना में शामिल किया गया। भारतीय सेना के पास अब 155 Mm अल्ट्रा लाइट हॉवित्जर M-777 गन भी हैं। इसकी खास बात ये है कि ये इतनी हल्की है कि हेलिकॉप्टर के जरिए हाई ऑल्टिट्यूट इलाके में पहुंचाया जा सकता है।

चीन-पाक को लेकर सेना प्रमुख का बड़ा बयान, जानें क्या कहा?

#army_chief_on_security_china_pakistan

भारतीय सेना प्रमुख जनरल उपेंद्र द्विवेदी ने चीन और पाकिस्तान को लेकर बड़ा बयान दिया है। सेना प्रमुख ने चीन और पाकिस्तान की बढ़ती नजदीकियों को लेकर कहा कि आज उनकी मिलीभगत ने खतरा और बढ़ा दिया है। साथ ही उन्होंने चीन के एक प्रमुख आर्थिक और सामरिक शक्ति के रूप में उभरने से जटिलता के बढ़ने की बात कही है। उन्होंने यह भी कहा कि चीन नियम-आधारित व्यवस्था को चुनौती दे रहा है और विघटनकारी गतिविधियों में आगे बढ़ रहा है।

सेना प्रमुख ने दिल्ली में जनरल बिपिन रावत मेमोरियल लेक्चर में यह बात कही।जनरल द्विवेदी ने कहा,देश कई तरह के प्रयासों के साथ काम कर रहा है, हमें इस बात का ध्यान रखना चाहिए कि सुरक्षा के क्षेत्र में ‘किसी उभरती शक्ति द्वारा किसी मौजूदा शक्ति को हटाने के लिए युद्ध की आशंका’ में फंसना बहुत आसान है। उन्होंने कहा, क्या हम सामाजिक क्षेत्र में अनिवार्य आवश्यकताओं वाले देश के रूप में इस आशंका में फंसने का जोखिम उठा सकते हैं? साथ ही, क्या हम इस तथ्य को नजरअंदाज कर सकते हैं कि हम एक बेहद अस्थिर पड़ोस में रहते।

सेना प्रमुख ने कहा, जैसा कि जनरल रावत ने कहा था कि जब आपके उत्तर और पश्चिम में अस्थिर सीमाएं होती हैं, तो आप नहीं जानते कि लड़ाई किस तरफ से शुरू होगी और कहां खत्म होगी। इसलिए, आपको दोनों मोर्चों के लिए तैयार रहना चाहिए। आज, उच्च स्तर पर मिलीभगत ने खतरे को और बढ़ा दिया है।

जनरल द्विवेदी ने चीन की गतिविधियों पर चिंता जताते हुए उन्होंने कहा कि चीन मौजूदा विश्व व्यवस्था को चुनौती दे रहा है। उन्होंने कहा कि चीन के एक प्रमुख आर्थिक और सामरिक शक्ति के रूप में उभरने से जटिलता बढ़ रही है, प्रतिस्पर्धा पैदा हो रही और ग्लोबल साउथ का नेतृत्व करने के भारत के प्रयासों में बाधा आ रही है।

इससे पहले आठ मार्च को भी जनरल द्विवेदी ने चीन और पाकिस्तान की करीबी का जिक्र किया था। उन्होंने कहा कि दोनों देशों के बीच काफी हद तक मिलीभगत है। इसे स्वीकार किया जाना चाहिए। एक कार्यक्रम में उन्होंने कहा कि चीन और पाकिस्तान की करीबी का मतलब है कि दोनों मोर्चों पर वास्तविक खतरा है। पाकिस्तान में अधिकांश उपकरण चीनी मूल के हैं। इसलिए यह दो-मोर्चे का खतरा और एक वास्तविकता है।