माघ मेला–2026 की तैयारियो को लेकर पुलिस एवं प्रशासनिक अधिकारियो का ब्रीफिंग कार्यक्रम आयोजित


संजय द्विवेदी, प्रयागराज।रिज़र्व पुलिस लाइन्स माघ मेला स्थित तीर्थराज सभागार में माघ मेला–2026 की तैयारियो के दृष्टिगत पुलिस अधिकारियो एवं कर्मचारियो का ब्रीफिंग कार्यक्रम आयोजित किया गया।ब्रीफिंग कार्यक्रम को सर्वप्रथम पुलिस अधीक्षक माघ मेला नीरज कुमार पाण्डेय द्वारा संबोधित किया गया।उन्होंने सभी थाना प्रभारी/चौकी प्रभारियो को अवगत कराया कि आगामी स्नान पर्व निकट है ऐसे में सभी को मुख्य मार्गो स्नान घाटो एवं आपातकालीन योजनाओ की विधिवत जानकारी रखते हुए अपने-अपने थाना स्तर पर क्रमवार ड्यूटी निर्धारण करना होगा तथा ड्यूटी प्वाइंट पर जाकर पुलिस बल को ब्रीफ करना सुनिश्चित करे।

इसके उपरान्त अपर पुलिस आयुक्त प्रयागराज डॉ.अजय पाल शर्मा द्वारा ब्रीफिंग के दौरान आपातकालीन योजनाओं पर विशेष बल देते हुए एक-एक योजना को विस्तार से समझाया गया।उन्होंने महाकुम्भ के अनुभव साझा करते हुए अधिक से अधिक रिहर्सल एवं अभ्यास करने पर जोर दिया ताकि किसी भी आपात स्थिति में त्वरित एवं प्रभावी कार्यवाही सुनिश्चित की जा सके।इसके पश्चात जिलाधिकारी प्रयागराज मनीष कुमार वर्मा ने सभी सेक्टर प्रभारियो को निर्देशित किया कि वे अपने-अपने सर्किल के क्षेत्राधिकारियो एवं थाना प्रभारियों के साथ बेहतर समन्वय स्थापित कर एकजुट होकर कार्य करे जिससे माघ मेला–2026 को सकुशल सम्पन्न कराया जा सके।

उन्होंने निर्देशित किया कि 30.12.2025 तक सभी तैयारियाँ पूर्ण कर ली जाएँ। साथ ही पुलिस प्रशासन एवं अन्य विभागो के बीच आपसी परिचय एवं समन्वय प्रत्येक सम्बंधित अधिकारी/कर्मचारी का मोबाइल नम्बर अपने पास रखना पार्किंग एवं होल्डिंग एरिया का निरीक्षण करना तथा प्रत्येक मजिस्ट्रेट को पुलिस के साथ भ्रमणशील रहने के निर्देश दिए।अंत में पुलिस आयुक्त कमिश्नरेट प्रयागराज जोगेन्द्र कुमार द्वारा पुलिस बल को सम्बोधित करते हुए निर्देशित किया गया कि सभी अपने-अपने थाना क्षेत्रो में आपातकालीन योजनाओं का नियमित अभ्यास करेगे तथा फुट पेट्रोलिंग एवं रात्रि गश्त को प्रभावी रूप से संचालित करेंगे। उन्होने सभी प्रमुख बिन्दुओं पर पर्याप्त पुलिस बल की ड्यूटी लगाने निरंतर चेकिंग अभियान चलाने एवं पुलिस की विजिबिलिटी बढ़ाने के निर्देश दिए ताकि आमजन में सुरक्षा की भावना और अधिक सुदृढ़ हो सके।उन्होने राजपत्रित अधिकारियो को थाना स्तर पर पुलिस बल से अधिक से अधिक संवाद (इंटरैक्शन)करने साथ मेस में भोजन करने मेला ड्यूटी में तैनात सभी अधिकारी/कर्मचारियो को मेला क्षेत्र न छोड़ने के निर्देश दिए।साथ ही 26.12.2025 को मुख्यमंत्री द्वारा मेला समीक्षा की वीडियो कॉन्फ्रेंस में दिए गए निर्देशों से अवगत कराते हुए उनके कड़ाई से अनुपालन के आदेश दिए।

पुलिस आयुक्त ने कहा कि माघ मेला–2026 का सफल सुरक्षित एवं शांतिपूर्ण आयोजन हम सभी के लिए एक बड़ी जिम्मेदारी है जिसे सभी अधिकारी एवं कर्मचारी पूर्ण लगन निष्ठा एवं टीमवर्क के साथ निभाएँगे।इस ब्रीफिंग कार्यक्रम में अपर पुलिस आयुक्त प्रयागराज डॉ.अजय पाल शर्मा जिलाधिकारी प्रयागराज मनीष कुमार वर्मा अपर जिलाधिकारी (प्रोटोकॉल)पुलिस अधीक्षक माघ मेला नीरज कुमार पाण्डेय पुलिस उपायुक्त नगर मनीष कुमार पुलिस उपायुक्त यमुनापार अभजीत कुमार सहायक पुलिस आयुक्त राजकुमार मीणा सहायक नोडल पुलिस अधिकारी माघ मेला विजय आनन्द सहित माघ मेला से जुड़े अन्य राजपत्रित अधिकारी थाना प्रभारी पीएसी एनडी आर एफ.एसडीआरएफ एवं अन्य सम्बंधित विभागो के अधिकारी कर्मचारी उपस्थित रहे।
माघ मेला–2026:श्रद्धालुओ की जल-सुरक्षा को लेकर नाविको के साथ पुलिस- प्रशासन की बैठक दिशा-निर्देश जारी

संजय द्विवेदी, प्रयागराज।पुलिस आयुक्त कमिश्नरेट प्रयागराज जोगेन्द्र कुमार(आई पी एस)द्वारा माघ मेला–2026 में आने वाले लाखो श्रद्धालुओ/स्नानार्थियो की सुरक्षा को दृष्टिगत रखते हुए नाविक संघ के पदाधिकारियो नाविको एवं गोताखोरो के साथ बैठक आयोजित की गई।बैठक के दौरान नाविक संचालको को आवश्यक सुरक्षा सम्बन्धी दिशा-निर्देश दिए गए।पुलिस आयुक्त द्वारा निर्देशित किया गया कि माघ मेला में देश के विभिन्न क्षेत्रो से आने वाले श्रद्धालुओ/स्नानार्थियो की सुरक्षा को प्राथमिकता देते हुए कोई भी नाविक अपनी नाव में निर्धारित क्षमता से अधिक व्यक्तियो को न बैठाए क्योंकि क्षमता से अधिक व्यक्तियों को बैठाकर नौ-संचालन करने से दुर्घटना की संभावना से इंकार नही किया जा सकता।उन्होंने यह भी निर्देशित किया कि नाव में सवार प्रत्येक व्यक्ति को‘लाइफ सेविंग जैकेट’ पहनाना अनिवार्य रूप से सुनिश्चित किया जाए जिससे किसी भी आपात स्थिति अथवा दुर्घटना की दशा में जनहानि को रोका जा सके।इसके साथ ही समस्त नाविकों को यह भी सुनिश्चित करने के निर्देश दिए-

निर्धारित दर से अधिक किराया किसी भी दशा में न वसूला जाए।

इस अवसर पर अपर पुलिस आयुक्त कमिश्नरेट प्रयागराज डॉ.अजय पाल शर्मा जिलाधिकारी प्रयागराज मनीष कुमार वर्मा पुलिस अधीक्षक माघ मेला नीरज कुमार पाण्डेय नोडल अधिकारी माघ मेला विजय आनन्द पुलिस उपाधीक्षकगण प्रभारी एस.डी.आर.एफ. कम्पनी कमांडर पी.ए.सी. (बाढ़)सहित अन्य सम्बंधित अधिकारी एवं कर्मचारीगण उपस्थित रहे।
पुलिस आयुक्त ने थाना अक्षयवट में पुलिस कर्मियो के साथ किया भोजन
अधिकारियो को नियमित थाना मेस में भोजन करने के निर्देश

संजय द्विवेदी,प्रयागराज।पुलिस आयुक्त कमिश्नरेट प्रयागराज जोगेन्द्र कुमार(आई पी एस)द्वारा हाल ही में माननीय मुख्यमंत्री द्वारा दिए गए निर्देशो के क्रम में माघ मेला क्षेत्र स्थित थाना अक्षयवट का भ्रमण/निरीक्षण किया गया। भ्रमण के दौरान थाना परिसर कार्यालय एवं मेस का अवलोकन किया गया तथा थाना प्रभारी एवं कर्मचारियो से संवाद किया गया।इसके उपरान्त पुलिस आयुक्त द्वारा अपर पुलिस आयुक्त कमिश्नरेट प्रयागराज जिलाधिकारी कमिश्नरेट प्रयागराज पुलिस अधीक्षक माघ मेला नोडल अधिकारी माघ मेला तथा थाना अक्षयवट के अधिकारी/कर्मचारीगणो के साथ थाना मेस में बैठकर सामूहिक रूप से भोजन किया गया।

इस अवसर पर पुलिस आयुक्त द्वारा निर्देशित किया गया कि सभी राजपत्रित अधिकारी नियमित रूप से अपने-अपने थाना मेस में पुलिस बल के साथ भोजन करेंगे जिससे आपसी संवाद समन्वय एवं टीम भावना को और अधिक सुदृढ़ किया जा सके।पुलिस आयुक्त द्वारा थाना अक्षयवट के रख-रखाव एवं साफ-सफाई की प्रशंसा करते हुए पुलिस बल का मनोबल बनाए रखने एवं उनके साथ निरन्तर सम्पर्क बनाए रखने पर विशेष बल दिया गया।
आज मनुष्य के पास सुविधाएं तो हैं पर सुख नहीं : स्वामी नारायणानन्द तीर्थ

मुंबई। कांदिवली (पूर्व) स्थित डॉ. बाबासाहेब आंबेडकर मैदान में चल रहे श्रीमद् भागवत ज्ञानयज्ञ के चतुर्थ दिवस में आध्यात्मिक उत्साह चरम पर रहा। जगद्गुरु शंकराचार्य स्वामी नारायणानन्द तीर्थ जी महाराज के दिव्य एवं प्रभावशाली प्रवचनों ने हजारों श्रद्धालुओं को आध्यात्मिक ज्ञान से सराबोर कर दिया। स्वामी जी ने कहा कि आज के सामाजिक परिवेश, बढ़ते तनाव, परिवारिक विघटन, मानसिक अवसाद तथा भौतिकता की अंधी दौड़ का उल्लेख करते हुए कहा कि आज मनुष्य के पास सुविधाएँ हैं, परंतु सुख नहीं; साधन हैं, पर साधना नहीं; उपलब्धियाँ हैं, पर आत्मशांति का अभाव है।" ऐसे में श्रीमद्भगवद्गीता मानवता के लिए संजीवनी है जो भटके मन को दिशा देती है और जीवन को संतुलन प्रदान करती है।

श्रीमद् केवल धार्म नहीं, ज उपयोगी मार्गदर
गीता विवेक, करुणा का श है — संघर्ष में देती है और
महार अपने इस संसार में ज्ञान से बढ़कर कोई पवित्र वस्तु नहीं। आगे स्वामी जी बोले कि गीता व्यवहार का धर्म है, वाद-विवाद का नहीं। जिस दिन गीता का सार जीवन में उतर जाए, उसी दिन समस्त शास्त्र स्वयं स्पष्ट हो जाते हैं।”

और इसी भाव को श्रीकृष्ण ने स्पष्ट किया। उन्होंने कहा कि वर्तमान समय में जब युवा दिशाहीनता, तनाव और प्रतिस्पर्धा में उलझा है— उस समय गीता की एक-एक पंक्ति दीपक बनकर मार्ग दिखाती है। यदि घर-घर में गीता का पाठ प्रारंभ हो जाए तो सामाजिक तनाव, वैचारिक विभाजन और मूल्यहीनता स्वतः कम होने लगे।
कार्यक्रम संयोजक मंडल ने बताया कि ज्ञानयज्ञ में प्रतिदिन अधिक संख्या में श्रद्धालु पहुँच रहे हैं और परिसर में शांति, अनुशासन एवं भक्ति की अनूठी धारा प्रवाहित है।
इस भव्य आयोजन में एडवोकेट जे. डी. सिंह, श्री राम मणि मिश्र, ओम प्रकाश सिंह, हरिश्चंद्र शुक्ल, प्रमोद दुबे, डॉ. दिनकर दुबे, संचित यादव, अनिल पांडेय, सूरज प्रताप सिंह देवड़ा सहित अनेक कार्यकर्ता सक्रिय भूमिका निभा रहे हैं।

अंत में स्वामी जी ने सभी से आग्रह किया कि “नये वर्ष का संकल्प केवल लक्ष्यों का न हो, चरित्र और चित्त-शुद्धि का भी हो। गीता को पढ़ें, जीएँ और बच्चों को भी उससे जोड़ें। यही मानवता की पुनर्स्थापना का मार्ग है।
राष्ट्रीय सम्मेलन में झारखंड का जलवा: 'शून्य से तीन वर्ष' के बच्चों के विकास और शिक्षक प्रशिक्षण मॉडल की देशभर में सराहना

नई दिल्ली/रांची | 27 दिसंबर 2025: नई दिल्ली में आयोजित मुख्य सचिवों के तीन दिवसीय राष्ट्रीय सम्मेलन के दूसरे दिन "विकसित भारत के लिए मानव पूंजी" पर विशेष चर्चा हुई। इस सत्र में झारखंड सरकार द्वारा शिक्षा और बाल विकास के क्षेत्र में किए जा रहे अभूतपूर्व कार्यों को एक सफल मॉडल के रूप में प्रस्तुत किया गया।

शून्य से तीन वर्ष के बच्चों पर विशेष फोकस

झारखंड सरकार ने सम्मेलन में बताया कि राज्य में 0-3 वर्ष के बच्चों के समग्र विकास के लिए 'मदर-चाइल्ड प्रोटेक्शन फ्लिपबुक' का प्रभावी उपयोग किया जा रहा है। इसके माध्यम से माता-पिता को पोषण और प्रारंभिक देखभाल की सरल जानकारी दी जा रही है। आंगनबाड़ी और आशा कार्यकर्ता घर-घर जाकर इस जागरूकता अभियान को सफल बना रही हैं।

शिक्षक प्रशिक्षण में झारखंड का 'नीड्स असेसमेंट' मॉडल

शिक्षा की गुणवत्ता सुधारने के लिए झारखंड के टीचर प्रोफेशनल डेवलपमेंट प्रोग्राम की विशेष चर्चा हुई।

टीचर नीड्स असेसमेंट: राज्य में हर 6 महीने में शिक्षकों की जरूरतों का आकलन किया जाता है।

99.26% भागीदारी: अप्रैल 2024 के पहले चरण में 1.10 लाख से अधिक शिक्षकों में से 99.26% की भागीदारी ने इस कार्यक्रम की सफलता को साबित किया है।

झारखंड के शीर्ष अधिकारियों की सहभागिता

सम्मेलन में झारखंड की ओर से मुख्य सचिव श्री अविनाश कुमार, परिवहन सचिव श्री कृपानंद झा, योजना एवं विकास सचिव श्री मुकेश कुमार और विशेष सचिव श्री राजीव रंजन सहित कई वरिष्ठ अधिकारी राज्य का प्रतिनिधित्व कर रहे हैं।

यह सम्मेलन विकसित भारत के लक्ष्य की प्राप्ति के लिए केंद्र और राज्यों के बीच बेहतर समन्वय और नीतियों के क्रियान्वयन की दिशा में मील का पत्थर साबित हो रहा है।

जिलाधिकारी ने निर्वाचन क्षेत्रो की निर्वाचक नामावलियो के विशेष प्रगाढ़ पुनरीक्षण में राजनैतिक दलो के प्रतिनिधियो के साथ की बैठक
मतदाता सूची में नाम दर्ज कराने के लिए फार्म-6 भरकर करें जमा-जिला निर्वाचन अधिकारी


संजय द्विवेदी, प्रयागराज।जिलाधिकारी मनीष कुमार वर्मा की अध्यक्षता में शुक्रवार को संगम सभागार में राजनैतिक दलो के प्रतिनिधियो की उपस्थिति में विधानसभा निर्वाचन क्षेत्रो की निर्वाचक नामावलियो का विशेष प्रगाढ़ पुनरीक्षण कार्यक्रम के सम्बन्ध में बैठक आयोजित की गयी। जिलाधिकारी ने बताया कि कुल 32,05,981(90.78 प्रतिशत)मतदाताओ का डिजिटाइजेशन के अनुसार मैपिंग का कार्य 26 दिसम्बर के सुबह 08ः00 बजे तक पूर्ण कर लिया गया है।

जिलाधिकारी ने राजनैतिक दलों के प्रतिनिधियो से कहा कि आज डिजिटाइजेशन का लास्ट दिन है,आज सूची को फ्रीज कर दिया जायेगा।जिलाधिकारी ने कहा कि ड्राफ्ट इलेक्टोरल रोल का प्रकाशन 31 दिसम्बर को होगा।जिलाधिकारी ने सभी राजनैतिक दलो के प्रतिनिधियो से कहा कि बीएलओ के पास फार्म-6 उपलब्ध है जिन लोगो ने 18 वर्ष की आयु पूर्ण कर लिया है लेकिन अभी तक उनका नाम वोटर लिस्ट में नही है या ऐसे लोग जो अर्हता तिथि 01.01.2026 तक 18 वर्ष की आयु पूर्ण कर रहे है या ऐसे मतदाता जो पूर्व में मतदाता थे लेकिन किन्हीं कारणो से मतदाता सूची में उनका नाम नही है तो वह सभी फार्म-6 भरकर जमा कर सकते है ऐसे सभी मतदाताओ का नाम 28 फरवरी 2026 के फाइनल ड्राफ्ट रोल में आ जायेगा।

नए वोटर्स बनाये जाने का अभियान भी चलाया जा रहा है।उन्होंने सभी प्रतिनिधियोे से इस अभियान में सहयोग करने के लिए एवं बीएलओ से सम्पर्क कर फार्म-6 अनुलग्नक-4 सहित घोषणापत्र के साथ बीएलओ को उपलब्ध कराने के लिए अनुरोध किया।इस अवसर पर उप जिला निर्वाचन अधिकारी पूजा मिश्रा राजनैतिक दलो के प्रतिनिधिगण एवं निर्वाचन से सम्बंधित अधिकारीगण उपस्थित रहे।
दिव्यांग खिलाड़ियों के आत्मविश्वास का प्रतीक बना दिव्य खेल महोत्सव
* मंत्री ने अलीगढ़ में तीन दिवसीय राज्य स्तरीय आयोजन का किया शुभारंभ

* योगी सरकार दिव्यांगजनों को आत्मनिर्भर बनाकर बढ़ा रही है आगे : नरेंद्र कश्यप



अलीगढ़/ लखनऊ । योगी सरकार के दिव्यांगजन सशक्तीकरण के संकल्प को साकार करते हुए अहिल्याबाई होल्कर स्टेडियम, अलीगढ़ में तीन दिवसीय राज्य स्तरीय दिव्य खेल महोत्सव–2025 का भव्य शुभारंभ किया गया। कार्यक्रम का उद्घाटन प्रदेश के पिछड़ा वर्ग कल्याण एवं दिव्यांगजन सशक्तीकरण राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) नरेन्द्र कश्यप ने दीप प्रज्ज्वलन कर किया।

इस अवसर पर मंत्री नरेन्द्र कश्यप ने दिव्यांग खिलाड़ियों का उत्साहवर्धन करते हुए कहा कि खेल दिव्यांगजनों के आत्मविश्वास, आत्मसम्मान और सामाजिक समावेशन का सबसे प्रभावी माध्यम हैं। उन्होंने कहा कि दिव्य खेल महोत्सव केवल एक प्रतियोगिता नहीं, बल्कि दिव्यांगजनों की प्रतिभा, संकल्प और आत्मनिर्भरता का उत्सव है।

मंत्री नरेन्द्र कश्यप ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के मार्गदर्शन और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में डबल इंजन सरकार ने दिव्यांगजनों के सशक्तीकरण को सर्वोच्च प्राथमिकता दी है। सरकार की स्पष्ट मंशा है कि दिव्यांगजन शिक्षा, खेल, रोजगार और सामाजिक जीवन के हर क्षेत्र में आगे बढ़ें और आत्मनिर्भर बनें। उन्होंने बताया कि वर्ष 2017 से पूर्व दिव्यांग पेंशन मात्र 300 रुपये प्रतिमाह थी, जिसे योगी सरकार ने बढ़ाकर 1000 रुपये प्रतिमाह कर दिया है। वर्तमान में प्रदेश के 11.50 लाख से अधिक दिव्यांगजन इस पेंशन योजना से लाभान्वित हो रहे हैं। सरकार भविष्य में पेंशन राशि को और बढ़ाने के लिए भी सतत प्रयासरत है। इसके साथ ही दिव्यांग दंपत्ति विवाह प्रोत्साहन योजना के अंतर्गत 35 हजार रुपये, दुकान निर्माण हेतु 20 हजार रुपये तथा दुकान संचालन के लिए 10 हजार रुपये की सहायता प्रदान की जा रही है। दिव्यांगजनों के स्वास्थ्य एवं पुनर्वास के लिए कॉक्लियर इम्प्लांट पर 6 लाख रुपये तक का व्यय सरकार द्वारा वहन किया जा रहा है। साथ ही निःशुल्क सर्जरी, कृत्रिम अंग एवं सहायक उपकरणों की सुविधाएं भी उपलब्ध कराई जा रही हैं।

शिक्षा के क्षेत्र में सरकार की प्रतिबद्धता पर प्रकाश डालते हुए मंत्री कश्यप ने कहा कि विशेष विद्यालयों, केयर सेंटरों, विश्वविद्यालयों एवं नवाचार आधारित योजनाओं के माध्यम से दिव्यांग विद्यार्थियों को प्राथमिक शिक्षा से लेकर उच्च शिक्षा तक समान अवसर उपलब्ध कराए जा रहे हैं। लक्ष्य है कि दिव्यांगजन आर्थिक, सामाजिक और शारीरिक रूप से सशक्त बनकर सामान्य से भी बेहतर जीवन जी सकें।

खेलों का उल्लेख करते हुए मंत्री कश्यप ने कहा कि भारतीय दिव्यांग खिलाड़ियों ने पैरालंपिक जैसे अंतरराष्ट्रीय मंचों पर देश का गौरव बढ़ाया है। पेरिस पैरालंपिक 2024 में भारतीय खिलाड़ियों के उत्कृष्ट प्रदर्शन ने यह सिद्ध कर दिया है कि दिव्यांगजन किसी से कम नहीं हैं। देवेंद्र झाझरिया जैसे खिलाड़ी दिव्यांग युवाओं के लिए प्रेरणा का स्रोत हैं।

मंत्री नरेन्द्र कश्यप ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने ‘विकलांग’ शब्द के स्थान पर ‘दिव्यांग’ शब्द देकर समाज की सोच बदलने का कार्य किया है। दिव्यांगजन असाधारण क्षमताओं के धनी हैं और राष्ट्र निर्माण में महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकते हैं।

कार्यक्रम के समापन पर मंत्री कश्यप ने सभी दिव्यांग खिलाड़ियों को शुभकामनाएं देते हुए विश्वास जताया कि दिव्य खेल महोत्सव–2025 से उभरने वाली प्रतिभाएं भविष्य में प्रदेश और देश का नाम रोशन करेंगी।
शीतलहर से निपटने को योगी सरकार पूरी तरह अलर्ट
* 1247 रैन बसेरे सक्रिय, 1.40 लाख से अधिक कंबल वितरित

ब्यूरो

लखनऊ। उत्तर प्रदेश में जारी भीषण शीतलहर और घने कोहरे को देखते हुए योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व वाली प्रदेश सरकार ने आमजन, विशेषकर गरीबों, निराश्रितों और जरूरतमंदों को राहत पहुंचाने के लिए व्यापक इंतजाम किए हैं। शासन के निर्देश पर प्रदेश के सभी जनपदों में रैन बसेरा, अलाव और कंबल वितरण की व्यवस्था को पूरी तरह सक्रिय कर दिया गया है, ताकि ठंड के कारण किसी भी नागरिक को परेशानी न हो।

प्रदेशभर में अब तक 1247 रैन बसेरे स्थापित किए जा चुके हैं, जहां 9949 से अधिक जरूरतमंद लोग आश्रय ले चुके हैं। जिला प्रशासन को रैन बसेरों में साफ-सफाई, प्रकाश, सुरक्षा और गर्म पानी की समुचित व्यवस्था सुनिश्चित करने के निर्देश दिए गए हैं।

शीतलहर से बचाव के लिए कंबल वितरण को प्राथमिकता दी जा रही है। चालू व्यवस्था के तहत सभी जनपदों को 17.55 करोड़ रुपये की धनराशि जारी की गई है। 75 जनपदों द्वारा कंबल खरीद के आदेश जारी किए जा चुके हैं, जिनमें से 3.78 लाख से अधिक कंबलों की आपूर्ति हो चुकी है। अब तक 1,40,364 कंबल जरूरतमंदों में वितरित किए जा चुके हैं और शेष का वितरण लगातार जारी है।

ठंड से राहत के लिए सार्वजनिक स्थलों पर अलाव जलाने की भी व्यापक व्यवस्था की गई है। सभी जनपदों को इसके लिए 1.75 करोड़ रुपये आवंटित किए गए हैं। अलाव की दैनिक स्थिति की निगरानी राहत पोर्टल के माध्यम से की जा रही है।

वहीं, घने कोहरे के कारण होने वाली दुर्घटनाओं से बचाव के लिए सरकार ने तकनीक का सहारा लिया है। राहत आयुक्त कार्यालय द्वारा सचेत ऐप और वेब पोर्टल के माध्यम से अब तक 33.27 करोड़ अलर्ट एसएमएस जारी किए जा चुके हैं। इसके साथ ही यूपीडा, एनएचएआई और पीडब्ल्यूडी द्वारा जिलाधिकारियों और पुलिस को लगातार ई-मेल अलर्ट भेजे जा रहे हैं।

प्रदेश सरकार ने स्पष्ट किया है कि शीतलहर के दौरान कोई भी जरूरतमंद ठंड से पीड़ित न रहे, इसके लिए सभी विभाग पूरी संवेदनशीलता के साथ राहत कार्यों में जुटे रहें।
उत्तराखंड मुख्यमंत्री धामी ने “पैंली-पैंली बार” उत्तराखंडी गीत का किया विमोचन
ब्यूरो

देहरादून। उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने आज एक विशेष कार्यक्रम में लोकप्रिय उत्तराखंडी लोकगीत “पैंली-पैंली बार” के नए संस्करण या संकलित रूप का विमोचन किया। यह गीत उत्तराखंड की समृद्ध लोक संस्कृति और पहाड़ी परंपराओं का प्रतीक है, जो बारिश, प्रकृति और ग्रामीण जीवन की खुशियों को दर्शाता है।
मुख्यमंत्री धामी ने विमोचन समारोह को संबोधित करते हुए कहा कि उत्तराखंड की लोक संस्कृति और लोकगीत हमारी पहचान की मजबूत नींव हैं। “पैंली-पैंली बार” जैसे गीत न केवल युवा पीढ़ी को अपनी जड़ों से जोड़ते हैं, बल्कि राज्य की सांस्कृतिक धरोहर को विश्व स्तर पर पहुंचाने में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं। उन्होंने कहा, “हमारी सरकार उत्तराखंडी लोककला, संगीत और परंपराओं को संरक्षित एवं प्रोत्साहित करने के लिए प्रतिबद्ध है। ऐसे आयोजन देवभूमि की आत्मा को जीवंत रखते हैं।”
इस अवसर पर लोक कलाकारों ने “पैंली-पैंली बार” गीत की प्रस्तुति दी, जिसने उपस्थित जनसमूह को मंत्रमुग्ध कर दिया। कार्यक्रम में कई गणमान्य व्यक्ति, लोक गायकों और सांस्कृतिक प्रेमियों ने भाग लिया।
मुख्यमंत्री धामी ने गीत के कलाकारों और निर्माताओं की सराहना करते हुए कहा कि ऐसे प्रयास राज्य की सांस्कृतिक विरासत को नई पीढ़ी तक पहुंचाने में सहायक होंगे। उन्होंने पर्यटकों और प्रवासी उत्तराखंडियों से भी अपील की कि वे ऐसे गीतों के माध्यम से देवभूमि की सुंदरता और संस्कृति से जुड़ें।
यह विमोचन उत्तराखंड सरकार की लोक संस्कृति संवर्धन की मुहिम का हिस्सा है, जो राज्य को सांस्कृतिक रूप से और मजबूत बनाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।
बांग्लादेश में हिंदुओं पर अत्याचार के विरोध में गरजी शिवसेना, जानसठ में फूंका मोहम्मद यूनुस का पुतलाl -
ब्रह्म प्रकाश शर्मा
– शांति का नोबेल पुरस्कार वापस लेने की उठाई मांग, भारत सरकार से हस्तक्षेप की अपील l

- गुरु गोविंद सिंह के साहिबजादों की शहादत को नमन कर आतंकवाद के विरुद्ध जताया आक्रोश l

जानसठ । बांग्लादेश में अल्पसंख्यकों, विशेषकर हिंदुओं के विरुद्ध बढ़ती हिंसा और उत्पीड़न की घटनाओं को लेकर शनिवार को शिवसेना कार्यकर्ताओं का गुस्सा फूट पड़ा। जानसठ तहसील परिसर के बाहर शिवसैनिकों ने बांग्लादेश की अंतरिम सरकार के प्रमुख मोहम्मद यूनुस का पुतला दहन कर जोरदार प्रदर्शन किया। कार्यकर्ताओं ने स्पष्ट शब्दों में कहा कि जो व्यक्ति अपने देश में शांति स्थापित करने में विफल है, उसे 'शांति का नोबेल पुरस्कार' रखने का कोई नैतिक अधिकार नहीं है।
खतौली तिराहा से तहसील तक गूंजे नारे ।

प्रदर्शन का नेतृत्व शिवसेना जिला प्रमुख बिट्टू सिखेड़ा और तहसील अध्यक्ष दिनेश उपाध्याय ने किया। शनिवार दोपहर भारी संख्या में शिवसैनिक और पदाधिकारी खतौली तिराहा पर एकत्र हुए। वहां से पैदल मार्च निकालते हुए कार्यकर्ता नारेबाजी करते हुए जानसठ तहसील गेट पर पहुंचे। प्रदर्शनकारियों के हाथों में बैनर और तख्तियां थीं, जिन पर बांग्लादेश में हिंदुओं की सुरक्षा सुनिश्चित करने और मोहम्मद यूनुस के विरुद्ध कार्रवाई की मांग अंकित थी। पुतला दहन के पश्चात अपने  संबोधित मे जिला प्रमुख बिट्टू सिखेड़ा ने कहा कि जब से मोहम्मद यूनुस ने सत्ता संभाली है, बांग्लादेश में हिंदुओं के घरों, मंदिरों और व्यापारिक प्रतिष्ठानों को निशाना बनाया जा रहा है। उन्होंने नॉर्वे सरकार और अंतरराष्ट्रीय समुदाय से मांग की कि यूनुस को दिया गया शांति का नोबेल पुरस्कार तत्काल वापस लिया जाए। उन्होंने कहा कि "शांति का पुरस्कार उस व्यक्ति के पास होना विश्व शांति का अपमान है, जिसके शासन में मानवता लहूलुहान हो रही है।"

साहिबजादों की शहादत और आतंकवाद का विरोध
तहसील अध्यक्ष दिनेश उपाध्याय ने बताया कि यह प्रदर्शन 'बलिदानी दिवस सप्ताह' के अंतिम दिन आयोजित किया गया। उन्होंने इस आंदोलन को गुरु गोविंद सिंह जी के साहिबजादों के सर्वोच्च बलिदान से जोड़ते हुए कहा कि जिस तरह साहिबजादों ने धर्म की रक्षा के लिए अपने प्राण न्यौछावर कर दिए, उसी भावना के साथ शिवसेना आज आतंकवाद और धार्मिक कट्टरवाद का प्रतीकात्मक विरोध कर रही है।

प्रदर्शन के दौरान भारत सरकार से भी मांग की गई कि वह राजनयिक स्तर पर दबाव बनाकर बांग्लादेश में हिंदुओं की जान-माल की सुरक्षा सुनिश्चित करे। इस अवसर पर मुख्य रूप से प्रमोद कुमार, रोशन कुमार, सचिन कुमार, आकाश कुमार, प्रिंस कुमार, अनुज कुमार और एडवोकेट हरमन कुमार सुंदरलाल उपाध्याय श्यामवीर सिंह दुष्यंत कुमार शेखर अंकुर सैनी आदित्य मोनू चंदू राजीव पाल शिव कुमार सहित बड़ी संख्या में  शिवसैनिक उपस्थित रहे।
माघ मेला–2026 की तैयारियो को लेकर पुलिस एवं प्रशासनिक अधिकारियो का ब्रीफिंग कार्यक्रम आयोजित


संजय द्विवेदी, प्रयागराज।रिज़र्व पुलिस लाइन्स माघ मेला स्थित तीर्थराज सभागार में माघ मेला–2026 की तैयारियो के दृष्टिगत पुलिस अधिकारियो एवं कर्मचारियो का ब्रीफिंग कार्यक्रम आयोजित किया गया।ब्रीफिंग कार्यक्रम को सर्वप्रथम पुलिस अधीक्षक माघ मेला नीरज कुमार पाण्डेय द्वारा संबोधित किया गया।उन्होंने सभी थाना प्रभारी/चौकी प्रभारियो को अवगत कराया कि आगामी स्नान पर्व निकट है ऐसे में सभी को मुख्य मार्गो स्नान घाटो एवं आपातकालीन योजनाओ की विधिवत जानकारी रखते हुए अपने-अपने थाना स्तर पर क्रमवार ड्यूटी निर्धारण करना होगा तथा ड्यूटी प्वाइंट पर जाकर पुलिस बल को ब्रीफ करना सुनिश्चित करे।

इसके उपरान्त अपर पुलिस आयुक्त प्रयागराज डॉ.अजय पाल शर्मा द्वारा ब्रीफिंग के दौरान आपातकालीन योजनाओं पर विशेष बल देते हुए एक-एक योजना को विस्तार से समझाया गया।उन्होंने महाकुम्भ के अनुभव साझा करते हुए अधिक से अधिक रिहर्सल एवं अभ्यास करने पर जोर दिया ताकि किसी भी आपात स्थिति में त्वरित एवं प्रभावी कार्यवाही सुनिश्चित की जा सके।इसके पश्चात जिलाधिकारी प्रयागराज मनीष कुमार वर्मा ने सभी सेक्टर प्रभारियो को निर्देशित किया कि वे अपने-अपने सर्किल के क्षेत्राधिकारियो एवं थाना प्रभारियों के साथ बेहतर समन्वय स्थापित कर एकजुट होकर कार्य करे जिससे माघ मेला–2026 को सकुशल सम्पन्न कराया जा सके।

उन्होंने निर्देशित किया कि 30.12.2025 तक सभी तैयारियाँ पूर्ण कर ली जाएँ। साथ ही पुलिस प्रशासन एवं अन्य विभागो के बीच आपसी परिचय एवं समन्वय प्रत्येक सम्बंधित अधिकारी/कर्मचारी का मोबाइल नम्बर अपने पास रखना पार्किंग एवं होल्डिंग एरिया का निरीक्षण करना तथा प्रत्येक मजिस्ट्रेट को पुलिस के साथ भ्रमणशील रहने के निर्देश दिए।अंत में पुलिस आयुक्त कमिश्नरेट प्रयागराज जोगेन्द्र कुमार द्वारा पुलिस बल को सम्बोधित करते हुए निर्देशित किया गया कि सभी अपने-अपने थाना क्षेत्रो में आपातकालीन योजनाओं का नियमित अभ्यास करेगे तथा फुट पेट्रोलिंग एवं रात्रि गश्त को प्रभावी रूप से संचालित करेंगे। उन्होने सभी प्रमुख बिन्दुओं पर पर्याप्त पुलिस बल की ड्यूटी लगाने निरंतर चेकिंग अभियान चलाने एवं पुलिस की विजिबिलिटी बढ़ाने के निर्देश दिए ताकि आमजन में सुरक्षा की भावना और अधिक सुदृढ़ हो सके।उन्होने राजपत्रित अधिकारियो को थाना स्तर पर पुलिस बल से अधिक से अधिक संवाद (इंटरैक्शन)करने साथ मेस में भोजन करने मेला ड्यूटी में तैनात सभी अधिकारी/कर्मचारियो को मेला क्षेत्र न छोड़ने के निर्देश दिए।साथ ही 26.12.2025 को मुख्यमंत्री द्वारा मेला समीक्षा की वीडियो कॉन्फ्रेंस में दिए गए निर्देशों से अवगत कराते हुए उनके कड़ाई से अनुपालन के आदेश दिए।

पुलिस आयुक्त ने कहा कि माघ मेला–2026 का सफल सुरक्षित एवं शांतिपूर्ण आयोजन हम सभी के लिए एक बड़ी जिम्मेदारी है जिसे सभी अधिकारी एवं कर्मचारी पूर्ण लगन निष्ठा एवं टीमवर्क के साथ निभाएँगे।इस ब्रीफिंग कार्यक्रम में अपर पुलिस आयुक्त प्रयागराज डॉ.अजय पाल शर्मा जिलाधिकारी प्रयागराज मनीष कुमार वर्मा अपर जिलाधिकारी (प्रोटोकॉल)पुलिस अधीक्षक माघ मेला नीरज कुमार पाण्डेय पुलिस उपायुक्त नगर मनीष कुमार पुलिस उपायुक्त यमुनापार अभजीत कुमार सहायक पुलिस आयुक्त राजकुमार मीणा सहायक नोडल पुलिस अधिकारी माघ मेला विजय आनन्द सहित माघ मेला से जुड़े अन्य राजपत्रित अधिकारी थाना प्रभारी पीएसी एनडी आर एफ.एसडीआरएफ एवं अन्य सम्बंधित विभागो के अधिकारी कर्मचारी उपस्थित रहे।
माघ मेला–2026:श्रद्धालुओ की जल-सुरक्षा को लेकर नाविको के साथ पुलिस- प्रशासन की बैठक दिशा-निर्देश जारी

संजय द्विवेदी, प्रयागराज।पुलिस आयुक्त कमिश्नरेट प्रयागराज जोगेन्द्र कुमार(आई पी एस)द्वारा माघ मेला–2026 में आने वाले लाखो श्रद्धालुओ/स्नानार्थियो की सुरक्षा को दृष्टिगत रखते हुए नाविक संघ के पदाधिकारियो नाविको एवं गोताखोरो के साथ बैठक आयोजित की गई।बैठक के दौरान नाविक संचालको को आवश्यक सुरक्षा सम्बन्धी दिशा-निर्देश दिए गए।पुलिस आयुक्त द्वारा निर्देशित किया गया कि माघ मेला में देश के विभिन्न क्षेत्रो से आने वाले श्रद्धालुओ/स्नानार्थियो की सुरक्षा को प्राथमिकता देते हुए कोई भी नाविक अपनी नाव में निर्धारित क्षमता से अधिक व्यक्तियो को न बैठाए क्योंकि क्षमता से अधिक व्यक्तियों को बैठाकर नौ-संचालन करने से दुर्घटना की संभावना से इंकार नही किया जा सकता।उन्होंने यह भी निर्देशित किया कि नाव में सवार प्रत्येक व्यक्ति को‘लाइफ सेविंग जैकेट’ पहनाना अनिवार्य रूप से सुनिश्चित किया जाए जिससे किसी भी आपात स्थिति अथवा दुर्घटना की दशा में जनहानि को रोका जा सके।इसके साथ ही समस्त नाविकों को यह भी सुनिश्चित करने के निर्देश दिए-

निर्धारित दर से अधिक किराया किसी भी दशा में न वसूला जाए।

इस अवसर पर अपर पुलिस आयुक्त कमिश्नरेट प्रयागराज डॉ.अजय पाल शर्मा जिलाधिकारी प्रयागराज मनीष कुमार वर्मा पुलिस अधीक्षक माघ मेला नीरज कुमार पाण्डेय नोडल अधिकारी माघ मेला विजय आनन्द पुलिस उपाधीक्षकगण प्रभारी एस.डी.आर.एफ. कम्पनी कमांडर पी.ए.सी. (बाढ़)सहित अन्य सम्बंधित अधिकारी एवं कर्मचारीगण उपस्थित रहे।
पुलिस आयुक्त ने थाना अक्षयवट में पुलिस कर्मियो के साथ किया भोजन
अधिकारियो को नियमित थाना मेस में भोजन करने के निर्देश

संजय द्विवेदी,प्रयागराज।पुलिस आयुक्त कमिश्नरेट प्रयागराज जोगेन्द्र कुमार(आई पी एस)द्वारा हाल ही में माननीय मुख्यमंत्री द्वारा दिए गए निर्देशो के क्रम में माघ मेला क्षेत्र स्थित थाना अक्षयवट का भ्रमण/निरीक्षण किया गया। भ्रमण के दौरान थाना परिसर कार्यालय एवं मेस का अवलोकन किया गया तथा थाना प्रभारी एवं कर्मचारियो से संवाद किया गया।इसके उपरान्त पुलिस आयुक्त द्वारा अपर पुलिस आयुक्त कमिश्नरेट प्रयागराज जिलाधिकारी कमिश्नरेट प्रयागराज पुलिस अधीक्षक माघ मेला नोडल अधिकारी माघ मेला तथा थाना अक्षयवट के अधिकारी/कर्मचारीगणो के साथ थाना मेस में बैठकर सामूहिक रूप से भोजन किया गया।

इस अवसर पर पुलिस आयुक्त द्वारा निर्देशित किया गया कि सभी राजपत्रित अधिकारी नियमित रूप से अपने-अपने थाना मेस में पुलिस बल के साथ भोजन करेंगे जिससे आपसी संवाद समन्वय एवं टीम भावना को और अधिक सुदृढ़ किया जा सके।पुलिस आयुक्त द्वारा थाना अक्षयवट के रख-रखाव एवं साफ-सफाई की प्रशंसा करते हुए पुलिस बल का मनोबल बनाए रखने एवं उनके साथ निरन्तर सम्पर्क बनाए रखने पर विशेष बल दिया गया।
आज मनुष्य के पास सुविधाएं तो हैं पर सुख नहीं : स्वामी नारायणानन्द तीर्थ

मुंबई। कांदिवली (पूर्व) स्थित डॉ. बाबासाहेब आंबेडकर मैदान में चल रहे श्रीमद् भागवत ज्ञानयज्ञ के चतुर्थ दिवस में आध्यात्मिक उत्साह चरम पर रहा। जगद्गुरु शंकराचार्य स्वामी नारायणानन्द तीर्थ जी महाराज के दिव्य एवं प्रभावशाली प्रवचनों ने हजारों श्रद्धालुओं को आध्यात्मिक ज्ञान से सराबोर कर दिया। स्वामी जी ने कहा कि आज के सामाजिक परिवेश, बढ़ते तनाव, परिवारिक विघटन, मानसिक अवसाद तथा भौतिकता की अंधी दौड़ का उल्लेख करते हुए कहा कि आज मनुष्य के पास सुविधाएँ हैं, परंतु सुख नहीं; साधन हैं, पर साधना नहीं; उपलब्धियाँ हैं, पर आत्मशांति का अभाव है।" ऐसे में श्रीमद्भगवद्गीता मानवता के लिए संजीवनी है जो भटके मन को दिशा देती है और जीवन को संतुलन प्रदान करती है।

श्रीमद् केवल धार्म नहीं, ज उपयोगी मार्गदर
गीता विवेक, करुणा का श है — संघर्ष में देती है और
महार अपने इस संसार में ज्ञान से बढ़कर कोई पवित्र वस्तु नहीं। आगे स्वामी जी बोले कि गीता व्यवहार का धर्म है, वाद-विवाद का नहीं। जिस दिन गीता का सार जीवन में उतर जाए, उसी दिन समस्त शास्त्र स्वयं स्पष्ट हो जाते हैं।”

और इसी भाव को श्रीकृष्ण ने स्पष्ट किया। उन्होंने कहा कि वर्तमान समय में जब युवा दिशाहीनता, तनाव और प्रतिस्पर्धा में उलझा है— उस समय गीता की एक-एक पंक्ति दीपक बनकर मार्ग दिखाती है। यदि घर-घर में गीता का पाठ प्रारंभ हो जाए तो सामाजिक तनाव, वैचारिक विभाजन और मूल्यहीनता स्वतः कम होने लगे।
कार्यक्रम संयोजक मंडल ने बताया कि ज्ञानयज्ञ में प्रतिदिन अधिक संख्या में श्रद्धालु पहुँच रहे हैं और परिसर में शांति, अनुशासन एवं भक्ति की अनूठी धारा प्रवाहित है।
इस भव्य आयोजन में एडवोकेट जे. डी. सिंह, श्री राम मणि मिश्र, ओम प्रकाश सिंह, हरिश्चंद्र शुक्ल, प्रमोद दुबे, डॉ. दिनकर दुबे, संचित यादव, अनिल पांडेय, सूरज प्रताप सिंह देवड़ा सहित अनेक कार्यकर्ता सक्रिय भूमिका निभा रहे हैं।

अंत में स्वामी जी ने सभी से आग्रह किया कि “नये वर्ष का संकल्प केवल लक्ष्यों का न हो, चरित्र और चित्त-शुद्धि का भी हो। गीता को पढ़ें, जीएँ और बच्चों को भी उससे जोड़ें। यही मानवता की पुनर्स्थापना का मार्ग है।
राष्ट्रीय सम्मेलन में झारखंड का जलवा: 'शून्य से तीन वर्ष' के बच्चों के विकास और शिक्षक प्रशिक्षण मॉडल की देशभर में सराहना

नई दिल्ली/रांची | 27 दिसंबर 2025: नई दिल्ली में आयोजित मुख्य सचिवों के तीन दिवसीय राष्ट्रीय सम्मेलन के दूसरे दिन "विकसित भारत के लिए मानव पूंजी" पर विशेष चर्चा हुई। इस सत्र में झारखंड सरकार द्वारा शिक्षा और बाल विकास के क्षेत्र में किए जा रहे अभूतपूर्व कार्यों को एक सफल मॉडल के रूप में प्रस्तुत किया गया।

शून्य से तीन वर्ष के बच्चों पर विशेष फोकस

झारखंड सरकार ने सम्मेलन में बताया कि राज्य में 0-3 वर्ष के बच्चों के समग्र विकास के लिए 'मदर-चाइल्ड प्रोटेक्शन फ्लिपबुक' का प्रभावी उपयोग किया जा रहा है। इसके माध्यम से माता-पिता को पोषण और प्रारंभिक देखभाल की सरल जानकारी दी जा रही है। आंगनबाड़ी और आशा कार्यकर्ता घर-घर जाकर इस जागरूकता अभियान को सफल बना रही हैं।

शिक्षक प्रशिक्षण में झारखंड का 'नीड्स असेसमेंट' मॉडल

शिक्षा की गुणवत्ता सुधारने के लिए झारखंड के टीचर प्रोफेशनल डेवलपमेंट प्रोग्राम की विशेष चर्चा हुई।

टीचर नीड्स असेसमेंट: राज्य में हर 6 महीने में शिक्षकों की जरूरतों का आकलन किया जाता है।

99.26% भागीदारी: अप्रैल 2024 के पहले चरण में 1.10 लाख से अधिक शिक्षकों में से 99.26% की भागीदारी ने इस कार्यक्रम की सफलता को साबित किया है।

झारखंड के शीर्ष अधिकारियों की सहभागिता

सम्मेलन में झारखंड की ओर से मुख्य सचिव श्री अविनाश कुमार, परिवहन सचिव श्री कृपानंद झा, योजना एवं विकास सचिव श्री मुकेश कुमार और विशेष सचिव श्री राजीव रंजन सहित कई वरिष्ठ अधिकारी राज्य का प्रतिनिधित्व कर रहे हैं।

यह सम्मेलन विकसित भारत के लक्ष्य की प्राप्ति के लिए केंद्र और राज्यों के बीच बेहतर समन्वय और नीतियों के क्रियान्वयन की दिशा में मील का पत्थर साबित हो रहा है।

जिलाधिकारी ने निर्वाचन क्षेत्रो की निर्वाचक नामावलियो के विशेष प्रगाढ़ पुनरीक्षण में राजनैतिक दलो के प्रतिनिधियो के साथ की बैठक
मतदाता सूची में नाम दर्ज कराने के लिए फार्म-6 भरकर करें जमा-जिला निर्वाचन अधिकारी


संजय द्विवेदी, प्रयागराज।जिलाधिकारी मनीष कुमार वर्मा की अध्यक्षता में शुक्रवार को संगम सभागार में राजनैतिक दलो के प्रतिनिधियो की उपस्थिति में विधानसभा निर्वाचन क्षेत्रो की निर्वाचक नामावलियो का विशेष प्रगाढ़ पुनरीक्षण कार्यक्रम के सम्बन्ध में बैठक आयोजित की गयी। जिलाधिकारी ने बताया कि कुल 32,05,981(90.78 प्रतिशत)मतदाताओ का डिजिटाइजेशन के अनुसार मैपिंग का कार्य 26 दिसम्बर के सुबह 08ः00 बजे तक पूर्ण कर लिया गया है।

जिलाधिकारी ने राजनैतिक दलों के प्रतिनिधियो से कहा कि आज डिजिटाइजेशन का लास्ट दिन है,आज सूची को फ्रीज कर दिया जायेगा।जिलाधिकारी ने कहा कि ड्राफ्ट इलेक्टोरल रोल का प्रकाशन 31 दिसम्बर को होगा।जिलाधिकारी ने सभी राजनैतिक दलो के प्रतिनिधियो से कहा कि बीएलओ के पास फार्म-6 उपलब्ध है जिन लोगो ने 18 वर्ष की आयु पूर्ण कर लिया है लेकिन अभी तक उनका नाम वोटर लिस्ट में नही है या ऐसे लोग जो अर्हता तिथि 01.01.2026 तक 18 वर्ष की आयु पूर्ण कर रहे है या ऐसे मतदाता जो पूर्व में मतदाता थे लेकिन किन्हीं कारणो से मतदाता सूची में उनका नाम नही है तो वह सभी फार्म-6 भरकर जमा कर सकते है ऐसे सभी मतदाताओ का नाम 28 फरवरी 2026 के फाइनल ड्राफ्ट रोल में आ जायेगा।

नए वोटर्स बनाये जाने का अभियान भी चलाया जा रहा है।उन्होंने सभी प्रतिनिधियोे से इस अभियान में सहयोग करने के लिए एवं बीएलओ से सम्पर्क कर फार्म-6 अनुलग्नक-4 सहित घोषणापत्र के साथ बीएलओ को उपलब्ध कराने के लिए अनुरोध किया।इस अवसर पर उप जिला निर्वाचन अधिकारी पूजा मिश्रा राजनैतिक दलो के प्रतिनिधिगण एवं निर्वाचन से सम्बंधित अधिकारीगण उपस्थित रहे।
दिव्यांग खिलाड़ियों के आत्मविश्वास का प्रतीक बना दिव्य खेल महोत्सव
* मंत्री ने अलीगढ़ में तीन दिवसीय राज्य स्तरीय आयोजन का किया शुभारंभ

* योगी सरकार दिव्यांगजनों को आत्मनिर्भर बनाकर बढ़ा रही है आगे : नरेंद्र कश्यप



अलीगढ़/ लखनऊ । योगी सरकार के दिव्यांगजन सशक्तीकरण के संकल्प को साकार करते हुए अहिल्याबाई होल्कर स्टेडियम, अलीगढ़ में तीन दिवसीय राज्य स्तरीय दिव्य खेल महोत्सव–2025 का भव्य शुभारंभ किया गया। कार्यक्रम का उद्घाटन प्रदेश के पिछड़ा वर्ग कल्याण एवं दिव्यांगजन सशक्तीकरण राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) नरेन्द्र कश्यप ने दीप प्रज्ज्वलन कर किया।

इस अवसर पर मंत्री नरेन्द्र कश्यप ने दिव्यांग खिलाड़ियों का उत्साहवर्धन करते हुए कहा कि खेल दिव्यांगजनों के आत्मविश्वास, आत्मसम्मान और सामाजिक समावेशन का सबसे प्रभावी माध्यम हैं। उन्होंने कहा कि दिव्य खेल महोत्सव केवल एक प्रतियोगिता नहीं, बल्कि दिव्यांगजनों की प्रतिभा, संकल्प और आत्मनिर्भरता का उत्सव है।

मंत्री नरेन्द्र कश्यप ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के मार्गदर्शन और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में डबल इंजन सरकार ने दिव्यांगजनों के सशक्तीकरण को सर्वोच्च प्राथमिकता दी है। सरकार की स्पष्ट मंशा है कि दिव्यांगजन शिक्षा, खेल, रोजगार और सामाजिक जीवन के हर क्षेत्र में आगे बढ़ें और आत्मनिर्भर बनें। उन्होंने बताया कि वर्ष 2017 से पूर्व दिव्यांग पेंशन मात्र 300 रुपये प्रतिमाह थी, जिसे योगी सरकार ने बढ़ाकर 1000 रुपये प्रतिमाह कर दिया है। वर्तमान में प्रदेश के 11.50 लाख से अधिक दिव्यांगजन इस पेंशन योजना से लाभान्वित हो रहे हैं। सरकार भविष्य में पेंशन राशि को और बढ़ाने के लिए भी सतत प्रयासरत है। इसके साथ ही दिव्यांग दंपत्ति विवाह प्रोत्साहन योजना के अंतर्गत 35 हजार रुपये, दुकान निर्माण हेतु 20 हजार रुपये तथा दुकान संचालन के लिए 10 हजार रुपये की सहायता प्रदान की जा रही है। दिव्यांगजनों के स्वास्थ्य एवं पुनर्वास के लिए कॉक्लियर इम्प्लांट पर 6 लाख रुपये तक का व्यय सरकार द्वारा वहन किया जा रहा है। साथ ही निःशुल्क सर्जरी, कृत्रिम अंग एवं सहायक उपकरणों की सुविधाएं भी उपलब्ध कराई जा रही हैं।

शिक्षा के क्षेत्र में सरकार की प्रतिबद्धता पर प्रकाश डालते हुए मंत्री कश्यप ने कहा कि विशेष विद्यालयों, केयर सेंटरों, विश्वविद्यालयों एवं नवाचार आधारित योजनाओं के माध्यम से दिव्यांग विद्यार्थियों को प्राथमिक शिक्षा से लेकर उच्च शिक्षा तक समान अवसर उपलब्ध कराए जा रहे हैं। लक्ष्य है कि दिव्यांगजन आर्थिक, सामाजिक और शारीरिक रूप से सशक्त बनकर सामान्य से भी बेहतर जीवन जी सकें।

खेलों का उल्लेख करते हुए मंत्री कश्यप ने कहा कि भारतीय दिव्यांग खिलाड़ियों ने पैरालंपिक जैसे अंतरराष्ट्रीय मंचों पर देश का गौरव बढ़ाया है। पेरिस पैरालंपिक 2024 में भारतीय खिलाड़ियों के उत्कृष्ट प्रदर्शन ने यह सिद्ध कर दिया है कि दिव्यांगजन किसी से कम नहीं हैं। देवेंद्र झाझरिया जैसे खिलाड़ी दिव्यांग युवाओं के लिए प्रेरणा का स्रोत हैं।

मंत्री नरेन्द्र कश्यप ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने ‘विकलांग’ शब्द के स्थान पर ‘दिव्यांग’ शब्द देकर समाज की सोच बदलने का कार्य किया है। दिव्यांगजन असाधारण क्षमताओं के धनी हैं और राष्ट्र निर्माण में महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकते हैं।

कार्यक्रम के समापन पर मंत्री कश्यप ने सभी दिव्यांग खिलाड़ियों को शुभकामनाएं देते हुए विश्वास जताया कि दिव्य खेल महोत्सव–2025 से उभरने वाली प्रतिभाएं भविष्य में प्रदेश और देश का नाम रोशन करेंगी।
शीतलहर से निपटने को योगी सरकार पूरी तरह अलर्ट
* 1247 रैन बसेरे सक्रिय, 1.40 लाख से अधिक कंबल वितरित

ब्यूरो

लखनऊ। उत्तर प्रदेश में जारी भीषण शीतलहर और घने कोहरे को देखते हुए योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व वाली प्रदेश सरकार ने आमजन, विशेषकर गरीबों, निराश्रितों और जरूरतमंदों को राहत पहुंचाने के लिए व्यापक इंतजाम किए हैं। शासन के निर्देश पर प्रदेश के सभी जनपदों में रैन बसेरा, अलाव और कंबल वितरण की व्यवस्था को पूरी तरह सक्रिय कर दिया गया है, ताकि ठंड के कारण किसी भी नागरिक को परेशानी न हो।

प्रदेशभर में अब तक 1247 रैन बसेरे स्थापित किए जा चुके हैं, जहां 9949 से अधिक जरूरतमंद लोग आश्रय ले चुके हैं। जिला प्रशासन को रैन बसेरों में साफ-सफाई, प्रकाश, सुरक्षा और गर्म पानी की समुचित व्यवस्था सुनिश्चित करने के निर्देश दिए गए हैं।

शीतलहर से बचाव के लिए कंबल वितरण को प्राथमिकता दी जा रही है। चालू व्यवस्था के तहत सभी जनपदों को 17.55 करोड़ रुपये की धनराशि जारी की गई है। 75 जनपदों द्वारा कंबल खरीद के आदेश जारी किए जा चुके हैं, जिनमें से 3.78 लाख से अधिक कंबलों की आपूर्ति हो चुकी है। अब तक 1,40,364 कंबल जरूरतमंदों में वितरित किए जा चुके हैं और शेष का वितरण लगातार जारी है।

ठंड से राहत के लिए सार्वजनिक स्थलों पर अलाव जलाने की भी व्यापक व्यवस्था की गई है। सभी जनपदों को इसके लिए 1.75 करोड़ रुपये आवंटित किए गए हैं। अलाव की दैनिक स्थिति की निगरानी राहत पोर्टल के माध्यम से की जा रही है।

वहीं, घने कोहरे के कारण होने वाली दुर्घटनाओं से बचाव के लिए सरकार ने तकनीक का सहारा लिया है। राहत आयुक्त कार्यालय द्वारा सचेत ऐप और वेब पोर्टल के माध्यम से अब तक 33.27 करोड़ अलर्ट एसएमएस जारी किए जा चुके हैं। इसके साथ ही यूपीडा, एनएचएआई और पीडब्ल्यूडी द्वारा जिलाधिकारियों और पुलिस को लगातार ई-मेल अलर्ट भेजे जा रहे हैं।

प्रदेश सरकार ने स्पष्ट किया है कि शीतलहर के दौरान कोई भी जरूरतमंद ठंड से पीड़ित न रहे, इसके लिए सभी विभाग पूरी संवेदनशीलता के साथ राहत कार्यों में जुटे रहें।
उत्तराखंड मुख्यमंत्री धामी ने “पैंली-पैंली बार” उत्तराखंडी गीत का किया विमोचन
ब्यूरो

देहरादून। उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने आज एक विशेष कार्यक्रम में लोकप्रिय उत्तराखंडी लोकगीत “पैंली-पैंली बार” के नए संस्करण या संकलित रूप का विमोचन किया। यह गीत उत्तराखंड की समृद्ध लोक संस्कृति और पहाड़ी परंपराओं का प्रतीक है, जो बारिश, प्रकृति और ग्रामीण जीवन की खुशियों को दर्शाता है।
मुख्यमंत्री धामी ने विमोचन समारोह को संबोधित करते हुए कहा कि उत्तराखंड की लोक संस्कृति और लोकगीत हमारी पहचान की मजबूत नींव हैं। “पैंली-पैंली बार” जैसे गीत न केवल युवा पीढ़ी को अपनी जड़ों से जोड़ते हैं, बल्कि राज्य की सांस्कृतिक धरोहर को विश्व स्तर पर पहुंचाने में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं। उन्होंने कहा, “हमारी सरकार उत्तराखंडी लोककला, संगीत और परंपराओं को संरक्षित एवं प्रोत्साहित करने के लिए प्रतिबद्ध है। ऐसे आयोजन देवभूमि की आत्मा को जीवंत रखते हैं।”
इस अवसर पर लोक कलाकारों ने “पैंली-पैंली बार” गीत की प्रस्तुति दी, जिसने उपस्थित जनसमूह को मंत्रमुग्ध कर दिया। कार्यक्रम में कई गणमान्य व्यक्ति, लोक गायकों और सांस्कृतिक प्रेमियों ने भाग लिया।
मुख्यमंत्री धामी ने गीत के कलाकारों और निर्माताओं की सराहना करते हुए कहा कि ऐसे प्रयास राज्य की सांस्कृतिक विरासत को नई पीढ़ी तक पहुंचाने में सहायक होंगे। उन्होंने पर्यटकों और प्रवासी उत्तराखंडियों से भी अपील की कि वे ऐसे गीतों के माध्यम से देवभूमि की सुंदरता और संस्कृति से जुड़ें।
यह विमोचन उत्तराखंड सरकार की लोक संस्कृति संवर्धन की मुहिम का हिस्सा है, जो राज्य को सांस्कृतिक रूप से और मजबूत बनाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।
बांग्लादेश में हिंदुओं पर अत्याचार के विरोध में गरजी शिवसेना, जानसठ में फूंका मोहम्मद यूनुस का पुतलाl -
ब्रह्म प्रकाश शर्मा
– शांति का नोबेल पुरस्कार वापस लेने की उठाई मांग, भारत सरकार से हस्तक्षेप की अपील l

- गुरु गोविंद सिंह के साहिबजादों की शहादत को नमन कर आतंकवाद के विरुद्ध जताया आक्रोश l

जानसठ । बांग्लादेश में अल्पसंख्यकों, विशेषकर हिंदुओं के विरुद्ध बढ़ती हिंसा और उत्पीड़न की घटनाओं को लेकर शनिवार को शिवसेना कार्यकर्ताओं का गुस्सा फूट पड़ा। जानसठ तहसील परिसर के बाहर शिवसैनिकों ने बांग्लादेश की अंतरिम सरकार के प्रमुख मोहम्मद यूनुस का पुतला दहन कर जोरदार प्रदर्शन किया। कार्यकर्ताओं ने स्पष्ट शब्दों में कहा कि जो व्यक्ति अपने देश में शांति स्थापित करने में विफल है, उसे 'शांति का नोबेल पुरस्कार' रखने का कोई नैतिक अधिकार नहीं है।
खतौली तिराहा से तहसील तक गूंजे नारे ।

प्रदर्शन का नेतृत्व शिवसेना जिला प्रमुख बिट्टू सिखेड़ा और तहसील अध्यक्ष दिनेश उपाध्याय ने किया। शनिवार दोपहर भारी संख्या में शिवसैनिक और पदाधिकारी खतौली तिराहा पर एकत्र हुए। वहां से पैदल मार्च निकालते हुए कार्यकर्ता नारेबाजी करते हुए जानसठ तहसील गेट पर पहुंचे। प्रदर्शनकारियों के हाथों में बैनर और तख्तियां थीं, जिन पर बांग्लादेश में हिंदुओं की सुरक्षा सुनिश्चित करने और मोहम्मद यूनुस के विरुद्ध कार्रवाई की मांग अंकित थी। पुतला दहन के पश्चात अपने  संबोधित मे जिला प्रमुख बिट्टू सिखेड़ा ने कहा कि जब से मोहम्मद यूनुस ने सत्ता संभाली है, बांग्लादेश में हिंदुओं के घरों, मंदिरों और व्यापारिक प्रतिष्ठानों को निशाना बनाया जा रहा है। उन्होंने नॉर्वे सरकार और अंतरराष्ट्रीय समुदाय से मांग की कि यूनुस को दिया गया शांति का नोबेल पुरस्कार तत्काल वापस लिया जाए। उन्होंने कहा कि "शांति का पुरस्कार उस व्यक्ति के पास होना विश्व शांति का अपमान है, जिसके शासन में मानवता लहूलुहान हो रही है।"

साहिबजादों की शहादत और आतंकवाद का विरोध
तहसील अध्यक्ष दिनेश उपाध्याय ने बताया कि यह प्रदर्शन 'बलिदानी दिवस सप्ताह' के अंतिम दिन आयोजित किया गया। उन्होंने इस आंदोलन को गुरु गोविंद सिंह जी के साहिबजादों के सर्वोच्च बलिदान से जोड़ते हुए कहा कि जिस तरह साहिबजादों ने धर्म की रक्षा के लिए अपने प्राण न्यौछावर कर दिए, उसी भावना के साथ शिवसेना आज आतंकवाद और धार्मिक कट्टरवाद का प्रतीकात्मक विरोध कर रही है।

प्रदर्शन के दौरान भारत सरकार से भी मांग की गई कि वह राजनयिक स्तर पर दबाव बनाकर बांग्लादेश में हिंदुओं की जान-माल की सुरक्षा सुनिश्चित करे। इस अवसर पर मुख्य रूप से प्रमोद कुमार, रोशन कुमार, सचिन कुमार, आकाश कुमार, प्रिंस कुमार, अनुज कुमार और एडवोकेट हरमन कुमार सुंदरलाल उपाध्याय श्यामवीर सिंह दुष्यंत कुमार शेखर अंकुर सैनी आदित्य मोनू चंदू राजीव पाल शिव कुमार सहित बड़ी संख्या में  शिवसैनिक उपस्थित रहे।