कुंभ भगदड़ पर राहुल गांधी का सरकार को घेरा, बोले-आंकड़ों में छुपाई गई गरीबों की लाशें
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इस साल प्रयागराज में आयोजित महाकुंभ में हुई भगदड़ में मरने वालों को लेकर एक बार फिर सियासत गरमा गई है। महाकुंभ हादसे में मरने वालों की तादाद को लेकर विपक्ष लगातार केन्द्र की बीजेपी सरकार को घर रहा है।विपक्ष का आरोप रहा है कि वहां हुई भगदड़ व हादसों में मृतकों के आंकड़ों को छुपाया गया है। इस बीच कांग्रेस सांसद और लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी ने बुधवार को बीबीसी की एक रिपोर्ट का हवाला देते हुए आरोप लगाया कि महाकुंभ के दौरान भगदड़ में मरने वालों की संख्या उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा दबा दी गई है। उन्होंने भाजपा पर आरोप लगाया कि उसकी कोई जवाबदेही नहीं है।
आंकड़े गायब कर दो, ज़िम्मेदारी भी खत्म-राहुल गांधी
बीबीसी के हवाले से राहुल गांधी ने सोशल मीडिया पर कहा कि बीजेपी सरकार का यही तरीका है-'आंकड़े गायब कर दो, तो ज़िम्मेदारी भी खत्म हो जाती है।' राहुल ने आरोप लगाया कि यही खेल कोविड महामारी के समय भी हुआ था, जब गरीबों की लाशें गंगा किनारे बहती मिलीं, लेकिन सरकारी आंकड़ों में मौतें बहुत कम बताई गईं।
मृतकों के आंकड़े छिपाना 'बीजेपी मॉडल'-राहुल गांधी
कांग्रेस नेता का कहना था कि हर बड़े रेल हादसे के बाद भी यही होता है, असली आंकड़े छुपा दिए जाते हैं। हादसे के बाद मृतकों के आंकड़े छिपाने को उन्होंने 'बीजेपी मॉडल' करार देते हुए कहा कि गरीबों की गिनती नहीं तो जवाबदेही भी नहीं।
अखिलेश यादव ने भी लगाया झूठ बोलने का आरोप
इससे पहले मंगलवार को समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने इसी मीडिया रिपोर्ट का हवाला देते हुए उत्तर प्रदेश सरकार पर 29 जनवरी के महाकुंभ भगदड़ में मरने वालों की संख्या के बारे में झूठ बोलने का आरोप लगाया और कहा कि जो लोग "झूठे आंकड़े" पेश करते हैं, जनता के विश्वास के लायक नहीं हैं।
बीबीसी ने रिपोर्ट में क्या?
दरअसल, हाल ही में बीबीसी ने एक रिपोर्ट प्रकाशित की है। इस रिपोर्ट में उसने कुंभ के दौरान मची भगदड़ में हुई मौतों के आंकड़े बताए हैं। रिपोर्ट में कहा गया है कि कुंभ में कम से कम 82 लोगों की जान गई जबकि सरकार ने कहा कि 37 लोगों की मौत हुई है।
Jun 12 2025, 12:50