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मुख्यमंत्री भगवान महाराजा अग्रसेन जयंती महोत्सव-2024 में हुए शामिल

रायपुर-    मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय आज यहां राजधानी रायपुर के छोकरा नाला स्थित श्री अग्रसेन धाम में भगवान महाराजा अग्रसेन जयंती महोत्सव-2024 में शामिल हुए। इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने कहा कि महाराजा अग्रसेन ने समानता और भाईचारे के साथ समाज को आगे बढ़ाने का महान कार्य किया। मुख्यमंत्री श्री साय ने अग्रसेन जयंती के अवसर पर श्री अग्रसेन धाम के द्वितीय तल का लोकार्पण किया।

मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा कि सभी को महाराजा अग्रसेन जयंती और नवरात्रि पर्व की बहुत-बहुत बधाई। अग्रवाल समाज हर क्षेत्र में अग्रणी रहने वाला समाज है। चाहे वह सेवा का क्षेत्र हो या शिक्षा और व्यापार की बात हो, हर क्षेत्र में अग्रवाल समाज ने महत्त्वपूर्ण योगदान दिया है।

मुख्यमंत्री श्री साय ने कहा कि कोई भी समाज अपनी संस्कृति और अपनी अर्थव्यवस्था के बल पर आगे बढ़ता है। इन दोनों के संतुलन से ही वास्तविक उन्नति होती है। महाराजा अग्रसेन जी ने यही शिक्षा हम सभी को दी है। उन्होंने जहां व्यापार और आर्थिक विकास के सिद्धांत हमें दिए, वहीं वैदिक धर्म, संस्कृति और आदर्शों का पालन करते हुए समाज के सभी वर्ग के लोगों की उन्नति के लिए समान अवसरों के निर्माण पर भी उन्होंने जोर दिया।

मुख्यमंत्री ने कहा कि महाराजा अग्रसेन ने समाज में समानता, भाईचारे और न्याय की स्थापना के लिए जो आदर्श प्रस्तुत किए, वे आज भी हमारे लिए प्रेरणा का स्रोत हैं। उनके आदर्शों पर चलते हुए अग्रवाल समाज के लोगों ने अपने व्यापार-व्यवसाय में ऊंची सफलता हासिल करते हुए देश के आर्थिक विकास में भी अपना उत्कृष्ट योगदान दिया है।

मुख्यमंत्री श्री साय ने कहा कि मेरा यह सौभाग्य रहा कि अपने सार्वजनिक जीवन मे मुझे हमेशा अग्रवाल समाज के लोगों के बीच रहने का मौका मिला। केंद्रीय राज्य मंत्री के रूप में कार्य करते हुए मैंने देखा कि उद्योग-धंधों से जुड़े जिन लोगों से मिलने का अवसर मिलता था, उनमें अधिकांश लोग अग्रवाल समाज से होते थे।

अग्रवाल समाज एक परोपकारी समाज है। इस समाज द्वारा सभी के परोपकार के लिए बहुत से कार्य किये जाते हैं । चाहे वह धर्मशाला निर्माण हो या स्कूल-अस्पताल बनवाना, सेवा के हर कार्य में अग्रवाल समाज अग्रणी रहता है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि हमारी सरकार को कार्य करते हुए अभी 9 महीने हुए हैं। उद्योग-धंधों का विकास हमारी प्राथमिकता है। छत्तीसगढ़ राज्य हर मामले में बहुत समृद्ध है, यहां उद्योगों की बहुत सम्भावना है। अग्रवाल समाज से मेरा आग्रह है कि वे उद्योगों के विकास के लिए अपना पूरा योगदान दें। उद्योगों के विकास से रोजगार सृजन में तेजी आएगी। प्रदेश के युवाओं को उद्योगों के हिसाब से स्किल डेवलपमेंट कर रोजगार से जोड़ने की दिशा में हम आगे बढ़ रहे हैं। हमारी सरकार द्वारा नई उद्योग नीति के माध्यम से अधिक से अधिक सहूलियत उद्योगों को प्रदान की जा रही है। हम सिंगल विण्डो सिस्टम द्वारा उद्योग-धंधों को बढ़ावा दे रहे हैं। अग्रवाल समाज को इनका लाभ उठाना चाहिए।

सांसद बृजमोहन अग्रवाल ने कहा कि अग्रवाल समाज का भारत की प्रगति में उल्लेखनीय योगदान है। अग्रवाल समाज धर्म की रक्षा और परिवार-व्यवस्था के लिए जाना जाता है। अग्रवाल समाज द्वारा समाजसेवा के कई कार्य किये जाते हैं। समाज की सेवा करना बहुत जरूरी है। आज परिवार को जोड़ कर चलने की जरूरत है। ये संस्कार नई पीढ़ी तक पहुंचाना जरूरी है। मुख्यमंत्री ने कार्यक्रम में विभिन्न क्षेत्रों में उत्कृष्ट प्रदर्शन करने वाले अग्रवाल समाज के लोगों को सम्मानित किया। उन्होंने महाराजा अग्रसेन की जीवनगाथा का विमोचन किया।

इस अवसर पर रायपुर सांसद बृजमोहन अग्रवाल, बसना के विधायक सम्पत अग्रवाल, निर्मल अग्रवाल सहित बड़ी संख्या में अग्रवाल समाज के लोग उपस्थित रहे।

वित्त मंत्री ओपी चौधरी औचक निरीक्षण में पहुंचे पुसौर स्कूल

रायपुर-   वित्त मंत्री ओपी चौधरी आज रायगढ़ प्रवास के दौरान विकास खंड पुसौर शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय के औचक निरीक्षण में पहुंचे। वित्त मंत्री श्री चौधरी ने स्कूल का भ्रमण कर विद्यालय के मूलभुत सुविधाओं की जानकारी ली। यहां उन्होंने विद्यालय में प्रयोगशाला निर्माण के लिए 20 लाख रूपये तथा पुस्तकालय के पुस्तकों हेतु 2 लाख रुपये की घोषणा की।

वित्त मंत्री ओपी चौधरी ने छात्राओं को संबोधित करते हुए कहा कि आने वाले चार से पांच वर्ष आपके लिए बहुत महत्वपूर्ण है। अपने लिए स्पष्ट लक्ष्य बनाकर कामयाबी हासिल करने के लिए पढ़ाई करें, ताकि आपका भविष्य बन सके। उन्होंने कहा कि आज के दौर प्रतिस्पर्धा का दौर है, शुरूआती असफलताओं से निराश और हताश न होकर अपने लक्ष्य पर ध्यान केन्द्रित करें। बड़ी सोच और रणनीति बनाकर पढ़ाई करें, तभी लक्ष्य की प्राप्ति होगी। उन्होंने कहा कि आज भारत विकासशील से विकसित राष्ट्र की ओर अग्रसर हो रहा है। यहां अलग-अलग क्षेत्र में कैरियर के विभिन्न अवसर तैयार हो रहे है। आपको उस अवसर को प्राप्त करने के लिए तैयार होना होगा। उन्होंने प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारियों पर चर्चा कर करते हुए टिप्स के साथ ही कैरियर के विभिन्न विकल्प की जानकारी भी दी। उन्होंने विद्यार्थियों से अपने जीवन के संघर्ष एवं अनुभव भी साझा किए। इस अवसर पर भरत षडंगी, विलीस गुप्ता, विकासखण्ड शिक्षा अधिकारी पुसौर ए.बी. केरकेट्टा, सहित पुसौर नगर पंचायत के गणमान्य नागरिक उपस्थित रहे।

कैरियर मार्गदर्शिका का किया वितरण

वित्त मंत्री ओपी चौधरी ने उच्च शिक्षा, छात्रवृत्ति, शासकीय नौकरी के लिए आयोजित प्रतियोगी परीक्षाओं एवं शासन की छात्रोपयोगी योजनाओं से संबंधित कैरियर मार्गदर्शिका पुस्तक का वितरण किया। उन्होंने कहा कि कैरियर मार्गदर्शिका आपको उच्च शिक्षा से संबंधित जिज्ञासा के साथ सामान्य ज्ञान को पूर्ण करने में सहायक होगी।

मुख्यमंत्री ने किया प्रथम छत्तीसगढ़ हरित शिखर सम्मेलन का शुभारंभ, पारंपरिक हर्बल उत्पादों और लोक कला का किया अवलोकन

रायपुर-      छत्तीसगढ़ की राजधानी रायपुर स्थित साइंस कॉलेज ग्राउंड परिसर में आज प्रथम छत्तीसगढ़ हरित शिखर सम्मेलन का भव्य आयोजन किया गया, जिसका उद्घाटन मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने किया। कार्यक्रम में प्रदेश की पारंपरिक वन संपदा, औषधीय उत्पादों और सांस्कृतिक धरोहर को प्रोत्साहित करने के उद्देश्य से विभिन्न विभागों द्वारा स्टॉल और प्रदर्शनी लगाई गई थी। मुख्यमंत्री ने इन स्टॉलों का भ्रमण कर उत्पादों की जानकारी ली और कलाकारों व कारीगरों के प्रयासों की सराहना की। इस अवसर पर वन एवं जलवायु परिवर्तन मंत्री केदार कश्यप भी उपस्थित थे।

पारंपरिक औषधियों की जानकारी प्राप्त की

मुख्यमंत्री ने छत्तीसगढ़ वैद्य संघ के प्रदेश अध्यक्ष दशरथ नेताम द्वारा प्रदर्शित पारंपरिक औषधियों का अवलोकन किया। श्री नेताम ने बताया कि ये औषधियाँ जंगलों से विशेष रूप से चुनकर लाई गई जड़ी-बूटियों से तैयार की जाती हैं, जो स्वास्थ्य के लिए अत्यंत प्रभावी हैं। उन्होंने इन औषधियों की निर्माण प्रक्रिया और उनके उपयोग के लाभों पर भी चर्चा की। मुख्यमंत्री ने इन पारंपरिक विधियों के संरक्षण और प्रसार की आवश्यकता पर जोर दिया।

महिला स्व-सहायता समूहों के उत्पादों की सराहना

मुख्यमंत्री ने छत्तीसगढ़ राज्य लघु वनोपज सहकारी मर्यादित संघ। के स्टॉल पर जाकर विभिन्न वन-आधारित उत्पादों जैसे जशपुर के हैंडमेड ग्रीन टी, हर्बल च्यवनप्राश, और बस्तर क्षेत्र के आदिवासी समुदाय द्वारा तैयार किए गए शुद्ध हर्बल उत्पादों का अवलोकन किया। उन्होंने ‘हर्बल छत्तीसगढ़’ ब्रांड के तहत तैयार शहद, रागी-कोदो कुकीज, आँवला कैंडी, और जामुन रस जैसे उत्पादों को देखकर हर्ष व्यक्त किया। मुख्यमंत्री ने कहा, “इन हर्बल उत्पादों को बढ़ावा देने से न केवल स्थानीय महिलाओं को रोजगार मिलेगा, बल्कि यह ग्रामीण अर्थव्यवस्था को भी सशक्त बनाएगा।”

लोक कलाकारों के अनोखे प्रदर्शन की प्रशंसा

मुख्यमंत्री ने देवरी (आरंग) के मोहरी वादक विशाल राम यादव और कोलिहापुरी, दुर्ग के चिकारा वादक मनहरण दास बंजारे के लोक वाद्य प्रदर्शन का आनंद लिया। उन्होंने कहा कि इस प्रकार की पारंपरिक लोक कलाएँ हमारी सांस्कृतिक विरासत का अभिन्न हिस्सा हैं, जिन्हें प्रोत्साहित किया जाना चाहिए। उन्होंने दोनों कलाकारों को उनके संगीत के प्रति समर्पण के लिए बधाई दी।

रजवार कला के भित्ति चित्रों की सराहना

भित्ति चित्र कलाकार डॉ. शशिप्रिया उपाध्याय ने मुख्यमंत्री को उनकी टीम द्वारा बनाए गए भित्ति चित्रों के बारे में बताया, जिनमें रजवार कला के माध्यम से छत्तीसगढ़ की आदिम संस्कृति, लोक जीवन, और पारंपरिक वेशभूषा को दर्शाया गया है। उन्होंने कहा कि रजवार कला का उद्देश्य छत्तीसगढ़ की लोक संस्कृति को जीवित रखना और इसे नए आयाम देना है। मुख्यमंत्री ने इस प्रयास की सराहना करते हुए कहा कि, "ऐसी लोककलाओं के संरक्षण और प्रचार-प्रसार से हमारी सांस्कृतिक धरोहर का भविष्य सुरक्षित रहेगा।"

दिव्यांग बच्चों की कला का सम्मान

मुख्यमंत्री ने शासकीय दिव्यांग महाविद्यालय, माना कैम्प के मूक-बधिर विद्यार्थियों द्वारा लगाई गई चित्रकला प्रदर्शनी का भी अवलोकन किया। इस दौरान छात्र धनदास बरमते ने स्वनिर्मित लोककला आधारित चित्र मुख्यमंत्री को भेंट किया। मुख्यमंत्री ने इस उपहार को स्वीकारते हुए धनदास की कला की प्रशंसा की और कहा, "आपकी यह कला हमारी संस्कृति को नई पहचान देने का कार्य करेगी।" उन्होंने धनदास के उज्ज्वल भविष्य की कामना की।

45 वर्षों से पारंपरिक वाद्य यंत्रों का संरक्षण कर रहे श्री रिखि क्षत्रिय का अभिनंदन

कार्यक्रम में छत्तीसगढ़ की पारंपरिक वाद्य यंत्रों के संरक्षण में योगदान देने वाले रिखि क्षत्रिय ने मुख्यमंत्री को अपनी यात्रा के बारे में विस्तार से बताया। श्री क्षत्रिय ने कहा कि वे पिछले 45 वर्षों से छत्तीसगढ़ी वाद्य यंत्रों—जैसे रुंजू बाजा, घूमरा बाजा और चिरई बाजा—का संरक्षण और प्रदर्शन कर रहे हैं। उन्होंने गणतंत्र दिवस पर कर्तव्य पथ पर छत्तीसगढ़ की झांकी में पारंपरिक वाद्य यंत्रों का प्रदर्शन कर प्रदेश का गौरव बढ़ाया है। श्री क्षत्रिय ने मुख्यमंत्री को रुंजू बाजा भेंट किया और अपने अद्भुत कौशल का प्रदर्शन करते हुए घूमरा बाजा से शेर की आवाज और चिरई बाजा से चिड़िया की आवाज निकालकर उन्हें आश्चर्यचकित कर दिया। मुख्यमंत्री ने उनके इस अनूठे योगदान की सराहना की और कहा कि ऐसे कलाकार हमारी लोक परंपराओं के सच्चे रक्षक हैं।

छत्तीसगढ़ की समृद्ध सांस्कृतिक धरोहर को मिला मंच

इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने कहा, “छत्तीसगढ़ हरित शिखर सम्मेलन जैसे आयोजन प्रदेश की सांस्कृतिक धरोहर, पारंपरिक उत्पादों और हस्तशिल्प को प्रोत्साहित करने के लिए एक अनूठा मंच प्रदान करते हैं। ये आयोजन हमारे पारंपरिक ज्ञान और संस्कृति को सहेजने के साथ-साथ, इसे राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर पहचान दिलाने में भी सहायक हैं।”

कार्यक्रम में विभिन्न विभागों के अधिकारियों, कला प्रेमियों और स्थानीय निवासियों की उपस्थिति रही, जिन्होंने छत्तीसगढ़ की समृद्ध सांस्कृतिक विरासत के संरक्षण के प्रयासों की सराहना की। साथ ही, मुख्यमंत्री ने सभी कलाकारों, कारीगरों, और प्रतिभागियों को प्रदेश की सांस्कृतिक धरोहर को संरक्षित और संवर्धित करने के लिए प्रोत्साहित किया।

मुख्यमंत्री विष्णु देव साय से मध्य प्रदेश के जनजातीय कार्य मंत्री कुंवर विजय शाह ने की सौजन्य मुलाकात
रायपुर-  मुख्यमंत्री विष्णु देव साय से आज मुख्यमंत्री निवास कार्यालय में मध्य प्रदेश के जनजातीय कार्य मंत्री कुंवर विजय शाह ने सौजन्य मुलाकात की। इस दौरान उन्होंने मुख्यमंत्री के साथ आदिवासी समुदायों के विकास और कल्याण से जुड़े विषयों पर चर्चा की। श्री शाह ने मध्य प्रदेश में चल रही विभिन्न योजनाओं की जानकारी दी।
छत्तीसगढ़ के छात्र बाल कृष्ण ने वेजिटेबल साइंस में किया आल इंडिया टॉप, घर लौटने पर हुआ भव्य स्वागत

गरियाबंद-    जिले के छोटे से ग्राम करचिया के किसान परिवार के कृष्ण नायक ने वेजिटेबल साइंस में पीएचडी के इंट्रेंस परीक्षा में आल इंडिया टॉप करके न केवल अपने पिता कंदरप नायक समेत परिवार ही नहीं बल्कि पूरे समाज को गौरवान्वित किया है. बाल कृष्ण ने ओबीसी श्रेणी में 490 अंकों में से 298 अंक हासिल कर पहली रैंक प्राप्त किया है. वहीं आज उसके गृह ग्राम लौटने पर पंडरा माली समाज ने भव्य समारोह का आयोजन कर उनका जोरदार स्वागत किया. देवभोग बस स्टैंड पर 100 से ज्यादा युवा और समाज के सभी बड़े पदाधिकारी मौजूद थे. इस मौके पर जुलूस निकाला गया, जिसमें आतिशबाजी की गई और बाजे-गाजे के साथ 3 किलोमीटर की रैली का आयोजन किया गया.

समाज प्रमुख नीलकंठ बीसी के प्रतिनिधि तेजराज बीसी, पुजारी शोभाचंद पात्र और युवा विंग के प्रमुख सुशील निधि ने कहा, “समाज का पहला व्यक्ति इस मुकाम तक पहुंचा है. यह सफलता अन्य युवाओं के लिए प्रेरणा है. बाल कृष्ण का प्रयास यह दर्शाता है कि मेहनत कभी बेकार नहीं जाती.”

सम्मान समारोह में 22 से अधिक गांवों के सामाजिक महिला-पुरुष बड़ी संख्या में जुटे थे. समाज के नेताओं ने बताया कि हमारा समाज हमेशा शिक्षा को प्राथमिकता देता है और इस तरह के आयोजनों से युवाओं को आगे बढ़ने के लिए प्रेरित किया जाता है.

मुख्यमंत्री को वनमंत्री ने अबूझमाड़ का शुद्ध देशी घी भेंट किया

रायपुर-   शारदीय नवरात्रि पर्व के पावन अवसर पर मुख्यमंत्री विष्णु देव साय से वन एवं जलवायु परिवर्तन मंत्री केदार कश्यप ने सौजन्य मुलाकात की और उन्हें नवरात्रि की शुभकामनाएं दीं। इस दौरान उन्होंने नारायणपुर जिले के अबूझमाड़ क्षेत्र के पहुंचविहीन कस्तुरमेटा गाँव के एक आदिवासी परिवार द्वारा घर में निर्मित शुद्ध देशी घी भेंट स्वरूप प्रदान किया। श्री कश्यप हाल ही में इस गांव के दौरे पर गए थे। यह गांव पहले माओवादी आतंक से प्रभावित रहा है।

मुख्यमंत्री को वनमंत्री श्री कश्यप ने बताया कि उन्होंने हाल ही में, नारायणपुर जिले के पहुंचविहीन क्षेत्र कस्तुरमेटा में पहली बार पहुंच कर आमजनों की समस्याएं सुनी और निराकरण का भरोसा दिलाया। नारायणपुर जिले के पहुंचविहीन क्षेत्रों में 18 से अधिक पुलिस कैंप स्थापित किया गया है, जिससे लोगों के जीवन में सकारात्मक परिवर्तन देखने को मिल रहा है। वन मंत्री ने अपने भ्रमण के दौरान कस्तुरमेटा के लोगों को भरोसा दिलाया कि नारायणपुर से कस्तुरमेटा तक नियमित रूप से बस सेवा प्रारंभ की जाएगी। स्थानीय लोगों से चर्चा करते हुए कहा कि जाति प्रमाण पत्र, आधार कार्ड, आयुष्मान कार्ड और जन्म प्रमाण पत्र सहित सभी प्रकार के प्रमाण पत्र बनाने के लिए भटकना नही पड़ेगा। इसके लिए जिला प्रशासन को निर्देशित किया गया है।

बलौदाबाजार हिंसा : विधायक देवेंद्र यादव को नहीं मिली राहत, कोर्ट ने फिर बढ़ाई रिमांड

बलौदाबाजार-   बलौदाबाजार हिंसा मामले में जेल में बंद विधायक देवेंद्र यादव को कोर्ट से फिर कोई राहत नहीं मिली. आज फिर सुनवाई में कोर्ट ने विधायक की दो दिन और न्यायिक हिरासत की अवधि बढ़ा दी. बता दें कि पुलिस ने 17 अक्टूबर तक रिमांड मांगी थी. बचाव अधिवक्ता के विरोध के बाद न्यायालय ने दो दिन की रिमांड बढ़ाई. वहीं सात आरोपियों में से पांच आरोपियों का आज चालान पेश हुआ. अब 5 अक्टूबर को बाकी आरोपियों का चालान पेश किया जाएगा.

बता दें कि गुरु बाबा घासीदास की तपोभूमि गिरौदपुरी में सतनाम समाज के आस्था के केंद्र अमर गुफा में स्थित महकोनी मंदिर परिसर में आसामाजिक तत्वों ने जमकर तांडव मचाया था. जैतखाम में तोड़फोड़ की घटना से आक्रोशित समाज के लोगों ने सीबीआई जांच की मांग की थी. इस मामले में पुलिस ने संदिग्ध आरोपियों को हिरासत में लिया है. वहीं राज्य सरकार ने पहले ही जैतखंभ तोड़फोड़ की घटना की न्यायिक जांच के आदेश दे दिए थे. इस घटना को लेकर बलौदाबाजार में हिंसक प्रदर्शन हुआ था. इस मामले में विधायक देवेंद्र यादव समेत सैकड़ों आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है. विधायक देवेंद्र यादव करीब तीन माह से जेल में हैं. कई बार उनकी रिमांड बढ़ाई गई है.

मुख्यमंत्री ने छत्तीसगढ़ हरित शिखर सम्मेलन का किया शुभारंभ

रायपुर-      मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने कहा है कि पर्यावरण संकट और जलवायु परिवर्तन वर्तमान में राष्ट्रीय चिंतन का विषय बन गया है। जलवायु परितर्वतन हाल के वर्षों में दुनिया की सबसे बड़ी चुनौती बनकर उभरी है। हम सभी को मिलकर इस समस्या से निपटने के लिए सहभागिता निभानी होगी। मुख्यमंत्री आज राजधानी रायपुर के पंडित दीनदयाल उपाध्याय सभागार में आयोजित प्रथम संस्करण छत्तीसगढ़ हरित शिखर के शुभारंभ कार्यक्रम को संबोधित कर रहे थे। इस मौके पर मुख्यमंत्री ने पर्यावरण शोध पर आधारित संक्षेपिका का विमोचन भी किया।

मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने जलवायु परिवर्तन पर अपनी चिंता जाहिर करते हुए कहा कि इस वर्ष देश में गर्मी ने पिछले सारे रिकॉर्ड तोड़ दिए। राजधानी दिल्ली में तापमान 52.3 डिग्री तक पहुंच गया था। जलवायु परिवर्तन ने भारत ही नहीं वन पूरे दुनिया में दस्तक दी है। दुबई जैसे रेगिस्तानी इलाके में अत्यधिक बारिश होने से पूरा शहर बाढ़ की चपेट में आ गया। उन्होंने कहा कि आज क्लाइमेट चेंज दुनिया में सबसे बड़ी चुनौती है और प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व में भारत पहले से ही इस समस्या के बारे में वैश्विक जगत को आगाह किया था।

मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश का 44 प्रतिशत हिस्सा वनाच्छादित है और हम इसे सहेजने का काम गंभीरता के साथ कर रहे हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के एक पेड़ मां के नाम अभियान के तहत 4 करोड़ वृक्ष लगाने का जो लक्ष्य रखा गया था, वह हमने पूरा कर लिया है। हाल ही में हमने गुरु घासीदास-तमोर पिंगला को टाइगर रिजर्व बनाने की पहल की है। इसके माध्यम से वन्यजीवों के संरक्षण और पर्यावरण के संवर्धन में भी बड़ी मदद मिलेगी और यह देश का तीसरा सबसे बड़ा टाइगर रिजर्व होगा। उन्होंने कहा कि प्रदेश में रिन्यूएबल एनर्जी की दिशा में भी हम लगातार काम कर रहे हैं। भारत में 200 गीगावॉट रिन्यूएबल एनर्जी का उत्पादन हो रहा है। वर्ष 2030 तक इसे बढ़ाकर 500 गीगावॉट करने की योजना है, इस लक्ष्य को पाने के लिए प्रदेश भी सहभागी होगा।

मुख्यमंत्री श्री साय ने कहा कि जलवायु परिवर्तन से निपटने के लिए छत्तीसगढ़ में अनेक कार्यक्रम चलाए जा रहे हैं। वृक्षारोपण को बढ़ावा देने के लिए हम किसान वृक्ष मित्र योजना, ग्रीन क्रेडिट योजना का क्रियान्वयन कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि हमने नवा रायपुर में पीपल फॉर पीपल अभियान की शुरुआत की है, जिसके तहत हजारों पीपल के पेड़ लगाए गए हैं। मुख्यमंत्री श्री साय ने आशा व्यक्त करते हुए कहा कि ऐसे सम्मेलनों के आयोजन से पर्यावरण संरक्षण की दिशा में कार्य तेजी से आगे बढ़ेंगे और विषय विशेषज्ञों की मदद से स्वच्छ पर्यावरण के लक्ष्य को प्राप्त करने में हम कामयाब होंगे।

वन मंत्री केदार कश्यप ने कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा कि दुनिया ने बहुत तरक्की कर ली है। हर क्षेत्र में हम आगे बढ़े लेकिन प्रकृति से हमने दूरी बना ली। हमने प्रकृति का साथ छोड़ा है, हम विकृति की ओर बढ़ने लगे हैं। श्री कश्यप ने कहा कि हमने साधनों का दुरुपयोग करना शुरू कर दिया है और अपने अस्तित्व को चुनौती देने का काम कर रहे हैं। वन मंत्री श्री कश्यप ने जलवायु परिवर्तन सहित पर्यावरण संरक्षण और संवर्धन के उद्देश्य से राज्य शासन की आगामी कार्य योजनाओं और प्रयासों की जानकारी दी।

प्रज्ञा प्रवाह के अखिल भारतीय संयोजक जे. नन्दकुमार ने कहा कि भारतीय संस्कृति को आरण्यक संस्कृति कहा गया है। भारतीय संस्कृति का आदर्श रूप वनवासियों के जीवन में हमें दिखता है। हमारे लोक जीवन और लोक परंपराओं में प्रकृति और मानव के बीच संबंध के अनेक सुंदर उदाहरण देखने को मिलते हैं। उन्होंने कहा कि आने वाले वर्षों में ग्रीन समिट का मोटो परस्पर जीना अर्थात सह अस्तित्व होना चाहिए। हमें पंचभूत को अपना मानकर इसकी रक्षा करनी चाहिए। भारतीय परंपरा में इन्हें ईश्वर का दर्जा भी दिया गया है। उन्होंने कहा कि हमें पेड़ लगाना, पानी बचाना, वायु को दूषित न करना और पर्यावरण को स्वच्छ बनाए रखने के लिए कार्य करना चाहिए, यह हम सब की जिम्मेदारी है।

पर्यावरण संरक्षण गतिविधि के राष्ट्रीय समन्वयक गोपाल आर्य ने कहा कि छत्तीसगढ़ की समृद्ध जैव विविधता और पर्यावरण के प्रति जागरूकता के लिए छत्तीसगढ़ ग्रीन समिट महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा। उन्होंने कहा कि वैश्विक महामारी ने प्रकृति और पर्यावरण के मध्य संबंधों को प्रभावित किया है। हमें संबंधों को परस्पर जीने के उद्देश्य से पुनः स्थापित करना है।

कार्यक्रम में वन बल प्रमुख व्ही. श्रीनिवास राव ने स्वागत उद्बोधन दिया। एमिटी यूनिवर्सिटी के कुलपति पीयूषकांत पांडे ने आभार व्यक्त किया। कर्याक्रम में बोटेनिकल सर्वे ऑफ इंडिया के निदेशक डॉ. असीसो माओ, एनआईटी रायपुर के डायरेक्टर एन व्ही रमन्ना राव, पद्मश्री जागेश्वर यादव, एमिटी वाटर वूमेन ऑफ इंडिया क्षिप्रा पाठक सहित गणमान्य नागरिक मौजूद रहे।

मुख्यमंत्री विष्णु देव साय की पहल से रातु राम को मिला तत्काल ट्राई सायकल

रायपुर-   मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय की पहल पर जशपुर जिले के कुनकुरी निवासी श्री रातु राम को तत्काल ट्राई सायकल प्रदान किया गया है। श्री रातु राम पांच साल पहले एक सड़क दुर्घटना में गंभीर रूप से घायल हो गए थे, तब से वे चलने-फिरने में असमर्थ थे। दुर्घटना के बाद से उनकी जिंदगी कठिन हो गई थी और वे अपने रोजमर्रा के कामों को करने में असमर्थ थे। इस समस्या के समाधान के लिए उन्होंने मुख्यमंत्री कैंप कार्यालय, बगिया में जाकर मुख्यमंत्री श्री साय से गुहार लगाई थी।

श्री रातु राम ने अपनी समस्या रखते हुए मुख्यमंत्री से मदद की अपील की, जिस पर सीएम कैंप कार्यालय बगिया ने त्वरित कार्रवाई करते हुए उन्हें ट्राई सायकल प्रदान करने के निर्देश दिए। ट्राई सायकल मिलने के बाद श्री रातु राम अब आसानी से अपने दैनिक कार्यों को पूरा कर पा रहे हैं और उनका जीवन फिर से सामान्य हो रहा है। उन्होंने इस मदद के लिए मुख्यमंत्री श्री साय के प्रति आभार व्यक्त किया और कहा कि उनकी सहायता ने उन्हें एक नई उम्मीद दी है। इस पहल से स्पष्ट है कि मुख्यमंत्री जनता की समस्याओं को सुनने और उनका समाधान करने के प्रति गंभीर हैं। इस घटना से जरूरतमंद लोगों को सरकारी योजनाओं का लाभ मिलने का भरोसा और भी मजबूत हुआ है।

15 राइस मिल संचालकों को नोटिस जारी, विपणन कार्यालय ने पांच दिनों के भीतर मांगा जवाब

रायगढ़-    जिले की 15 राइस मिल संचालकों को जिला विपणन कार्यालय से नोटिस जारी करके जवाब तलब किया गया है. जिन राइस मिलों को नोटिस जारी करके जवाब मांगा गया है, उनके ऊपर समय अवधि में चावल की स्टेक का काम पूर्ण नहीं होने पर घोर लापरवाही मानते हुए पांच दिनों के भीतर कार्यालय में जवाब प्रस्तुत करने को कहा गया है.

इन 15 राइस मिलों को नोटिस जारी

नोटिस प्राप्त राइस मिलों में ए वन राइस इंस्ट्रीज, जीटी राइस मिल, जेके राइस मिल, गोपी ट्रेडर्स, जय मा दुर्गा इंस्ट्रीज, कृष्णा राइस मिल, श्री तिरूपति राइस मिल, मां दुर्गा फूड्स प्रोडक्ट, महालक्ष्मी राइस मिल, एमएस बैघनाथ फूड, एमएस सूरज एग्रो, श्री मंगला ग्रीन, श्री श्याम एग्रो, श्री राधा कृष्ण एग्रो, श्री राधेकृष्ण राइस मिल, शुभम राइस मिल के नाम शामिल है.

समय पर चावल के स्टेक एफसीआई नहीं भेजे जाने के मामले में जिला विपणन अधिकारी शैला नेताम ने बताया कि शासन के नियमानुसार एफसीआई में चावल जमा करने के लिए प्रत्येक राइस मिल को 15 दिन का समय दिया जाता है. लेकिन 15 राइस मिल संचालकों द्वारा समय अवधि पूर्ण होनें के बाद भी एफसीआई में चावल के स्टेक जमा नहीं किये गए जिसके चलते उन्हें नोटिस जारी करते हुए सप्ताह भर के भीतर जवाब मांगा है. विपणन अधिकारी ने बताया कि सात दिनों के भीतर संतोषपूर्ण जवाब नहीं मिलने पर कार्रवाई की तैयारी की जा रही है.