भारत नेदक्षिण चीन सागर में फिलीपींस के रूख का खुलकर किया समर्थन, तिलमिलाया चीन, जानें क्या कहा?
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चीन अपने पड़ोसी देशों को कैसे देखता है, ये किसी से छुपा नहीं है।चीन एक ऐसा देश है, जो अपने पड़ोसी मुल्कों की जमीन पर अवैध कब्जे को लेकर सबसे ज्यादा विवादों में रहता है। दरअसल चीन दुनिया के नक्शे पर सबसे ज्यादा, 14 देशों के साथ अपनी सीमा साझा करता है। ड्रैगन ने अपनी विवादास्पद विस्तार वादी नीति के तहत सभी पड़ोसी देशों की जमीन पर या तो कब्जा कर रखा है या कब्जे का प्रयास करता रहता है। हालांकि भारत जैसे देश ड्रैगन को आइना दिखाने से भी नहीं चूकते। इसी क्रम में चीन और फिलीपींस में तनाव के बीच भारत ने फिलीपींस की संप्रुभता का पुरजोर समर्थन किया है। अब चीन ने भारतीय विदेश मंत्री एस जयशंकर के बयान पर तीखी प्रतिक्रिया दी है।
चीन ने कहा-तीसरे पक्ष के हस्तक्षेप को बर्दाश्त नहीं
फिलीपींस के साथ चल रहे समुद्री सीमा विवाद को लेकर चीन ने चेतावनी जारी करते हुए कहा कि इस मुद्दे पर तीसरे पक्ष के हस्तक्षेप को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। इस दौरान उन्होंने भारत से दक्षिण चीन सागर पर चीन के संप्रमुभता के दावों का सम्मान करने की अपील भी की है। चीनी विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता लिन जियान ने कहा कि समुद्री विवाद संबंधित देशों के बीच का मुद्दा है और कोई भी तीसरा पक्ष इसमें हस्तक्षेप करने की स्थिति में नहीं है।हम संबंधित पक्ष से दक्षिण चीन सागर के मुद्दों के तथ्यों का सामना करने, चीन की संप्रभुता और समुद्री हितों और दक्षिण चीन सागर में शांति और स्थिरता बनाए रखने के लिए क्षेत्रीय देशों द्वारा किए गए प्रयासों का सम्मान करने का आग्रह करते हैं।
एस जयशंकर का फिलीपींस को समर्थन
इससे पहले मंगलवार को दक्षिण चीन सागर में चीन के साथ फिलीपींस के विवाद के बीच भारत के विदेश मंत्री जयशंकर ने बयान दिया था। जयशंकर ने मनीला में प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा कि हम अपना सहयोग बढ़ाने के लिए तत्पर हैं। उन्होंने कहा मैं इस अवसर पर फिलीपींस की राष्ट्रीय संप्रभुता को बनाए रखने के लिए भारत के समर्थन को दोहराता हूं। उन्होंने कहा कि जैसे-जैसे दुनिया बदल रही है। यह जरूरी है कि भारत और फिलीपींस उभरते मॉडल को आकार देने में अधिक निकटता से सहयोग करें।विदेश मंत्री ने एक सवाल के जवाब में कहा कि प्रत्येक देश को अपनी राष्ट्रीय संप्रभुत्ता को बनाए रखने का अधिकार है। उन्होंने कहा कि हमने इस पर भी चर्चा की है। जयशंकर ने कहा कि हाल ही में भारत और फिलीपींस के बीच द्विपक्षीय संबंधों में बहुत उल्लेखनीय वृद्धि हुई है।
क्या है चीन और फिलीपींस विवाद?
चीन और फिलीपींस के बीच लंबे समय से साउथ चाइना सी में सीमा को लेकर विवाद चल रहा है। फिलीपींस जिस हिस्से को पश्चिमी फिलीपींस सागर में अपना बताता है वहीं चीन उसे साउथ चाइना सी के तमाम हिस्सों की तरह ही अपना जताने में लगा है। साउथ चाइना सी के आयुनगिन शाओल आइलैंड को चीन सेकंड थामस शाओल के नाम से पुकारता है। दिलचस्प यह है कि साउथ चाइना सी का यह आइलैंड फिलीपींस के तट से महज़ 200 किलोमीटर की दूरी पर है जबकि वो चीन के तट से 1000 किलोमीटर से अधिक दूरी पर है।
Mar 27 2024, 15:45