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दुर्गा पूजा, दिवाली और छठ के लिए रेलवे ने 70 स्पेशल ट्रेनों का ऐलान किया, देखें पूरी लिस्ट

डेस्क: त्योहारों का सीजन शुरू हो चुका है। यात्रियों की बढ़ती संख्या को ध्यान में रखते हुए रेलवे ने कमर कस ली है और कई अतिरिक्त ट्रेन चलाने का फैसला किया है। सेंट्रल रेलवे की ओर से दी गई जानकारी के मुताबिक त्योहारी सीजन को ध्यान में रखते हुए करीब 70 अतिरिक्त ट्रेनों को चलाया जाएगा। इन ट्रेनों के लिए बुकिंग सोमवार (16 अक्टूबर) से शुरू हो गई है। 

बता दें, रेलवे की ओर से दुर्गा पूजा, दिवाली और छठ पूजा को ध्यान में रखते हुए हर वर्ष कुछ अतिरिक्त ट्रेनों का संचालन किया जाता है, जिससे कि महानगरों में काम करने वाले लोग आसानी से अपने घर जा सके।

कौन-कौन सी स्पेशल ट्रेनें चलाई जाएंगी? 

लोकमान्य तिलक टर्मिनस- समस्तीपुर एसी साप्ताहिक सुपरफास्ट स्पेशल

इस ट्रेन का नंबर का 01043 है। ये ट्रेन लोकमान्य तिलक टर्मिनस से 19 अक्टूबर से 12:15 बजे से हर गुरुवार को 30 नंवबर तक चलेगी। यह स्पेशल ट्रेन समस्तीपुर अगले दिन 21:15 पर पहुंचेगी। वहीं, समस्तीपुर से लौटते समय इस ट्रेन का नंबर 01044 होगा। यह 20 अक्टूबर से 1 दिसंबर तक हर शुक्रवार को 23:20 बजे समस्तीपुर से चलेगी। यह तीसरे दिन सुबह 7:40 बजे लोकमान्य तिलक टर्मिनस पर पहुंच जाएगी। 

यह ट्रेन कल्याण, इगतपुरी, नासिक रोड, भुसावल, खंडवा, इटारसी, पिपरिया, जबलपुर, कटनी, मैहर, सतना, मानिकपुर, प्रयागराज छिवकी जंक्शन, मिर्ज़ापुर, पं.दीन दयाल उपाध्याय जंक्शन, बक्सर, आरा, दानापुर, पाटलिपुत्र, हाजीपुर और मुजफ्फरपुर में रुकेगी।

लोकमान्य तिलक टर्मिनस-बनारस साप्ताहिक स्पेशल

लोकमान्य तिलक टर्मिनस-बनारस साप्ताहिक स्पेशल ट्रेन का नंबर 01053 होगा। ये ट्रेन 16 अक्टूबर से लेकर 27 नवंबर तक हर सोमवार को 12:15 बजे तक चलेगी और अगले दिन 16:05 बजे बनारस पहुंचेगी। बनारस से इस ट्रेन का नंबर 01054 हो जाएगा और 20:30 बजे हर मंगलवार को 17 अक्टूबर से लेकर 28 नवंबर तक चलेगी। अगले दिन लोकमान्य तिलक टर्मिनस 23:55 तक पहुंच जाएगी। 

यात्रा के दौरान ट्रेन कल्याण, इगतपुरी, नासिक रोड, भुसावल, खंडवा, इटारसी, पिपरिया, जबलपुर, कटनी, मैहर, सतना, मानिकपुर और प्रयागराज छिवकी जंक्शन पर रुकेगी।

लोकमान्य तिलक टर्मिनस -मंगलुरु जंक्शन साप्ताहिक स्पेशल 

इस ट्रेन का नंबर 01185 होगा। ये 20 अक्टूबर से लेकर 1 दिसंबर तक हर शुक्रवार को मुंबई के लोकमान्य तिलक टर्मिनस से 22:15 बजे चलेगी। इसके बाद अगले दिन 17:05 बजे मंगलुरु जंक्शन पहुंचेगी। वहीं, मंगलुरु से इस ट्रेन का नंबर 01186 होगा और ये 21 अक्टूबर से लेकर 2 दिसंबर तक हर शनिवार को 18:45 बजे चलेगी और अगले दिन 14:25 बजे लोकमान्य तिलक टर्मिनस पहुंच जाएगी।

पुणे जंक्शन-अजनी एसी सुपरफास्ट साप्ताहिक स्पेशल

ये ट्रेन पुणे जंक्शन से हर मंगलवार को 17 अक्टूबर से 28 नवंबर के बीच चलेगी। इस ट्रेन का नंबर पुणे से चलते समय 02141 और अजनी से चलते समय 02142 होगा। ट्रेन हर मंगलवार को पुणे से 15:15 बजे चलेगी और अजनी अगले दिन 04:50 बजे पहुंच जाएगी। वहीं, अजनी से हर बुधवार को 19:50 बजे चलेगी और पुणे 11:35 बजे अगले दिन पहुंच जाएगी। 

पुणे जंक्शन- गोरखपुर सुपरफास्ट साप्ताहिक स्पेशल

ये ट्रेन 20 अक्टूबर से लेकर 1 दिसंबर के बीच हर शुक्रवार को पुणे से 16:15 बजे चलेगी। इस ट्रेन का नंबर 01431 होगा। यह ट्रेन अगले दिन 21:00 बजे गोरखपुर पहुंचेगी। इस ट्रेन का नंबर गोरखपुर से 01432 होगा। यह 21 अक्टूबर से लेकर 2 दिसंबर तक हर शनिवार को गोरखपुर से 23:25 बजे चलेगी और तीसरे दिन 6:25 बजे पुणे पहुंचेगी। 

इस दौरान ट्रेन अहमदनगर, बेलापुर, कोपरगांव, मनमाड, भुसावल, खंडवा, इटारसी, भोपाल, बीना, वीरांगना लक्ष्मीबाई जंक्शन, उरई, कानपुर, लखनऊ, गोंडा, मनकापुर, बस्ती और खलीलाबाद स्टेशन पर रुकेगी।

राम जन्मभूमि पर तेजी से हो रहा निर्माण कार्य, सामने आईं ताजा तस्वीरें

डेस्क: यूपी के अयोध्या में राम मंदिर का निर्माण कार्य तेजी से हो रहा है। इस निर्माण कार्य की आज सुबह की ताजा तस्वीरें सामने आई हैं। तस्वीरों में देखा जा सकता है कि ये मंदिर कितना भव्य है और कितनी तेजी से बन रहा है। मंदिर बनाने के लिए जिस संकल्प के साथ कारीगर काम में जुटे हुए हैं, उससे लगता है कि मंदिर समय से बनकर तैयार हो जाएगा। श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ने 'एक्स' पर इसकी ताजा तस्वीरें साझा की हैं। 

श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र के अध्यक्ष ने रविवार को लिया था जायजा

इससे पहले श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र के अध्यक्ष महंत नृत्य गोपाल दास ने रविवार शाम को अयोध्या में रामलला के दर्शन किए थे। इसके बाद उन्होंने श्रीराम जन्मभूमि मंदिर में बन रहे भव्य राम मंदिर के निर्माण कार्यों का भी जायजा लिया।

इस दौरान महंत नृत्य गोपाल दास ने निर्माण कार्य देख रहे प्रोजेक्ट मैनेजर और इंजीनियरों से भी बात की थी और कहा था कि जिस गति से निर्माण कार्य चल रहा है, उससे लगता है कि आगामी जनवरी महीने तक गर्भ गृह पूर्ण रूप से तैयार हो जाएगा और भक्त दर्शन कर सकेंगे।

यूपी के फर्रुखाबाद में माफिया पर बड़ा एक्शन! बसपा नेता अनुपम दुबे के आलीशान होटल पर चला बुलडोजर

डेस्क: यूपी के फर्रुखाबाद जिले में योगी सरकार ने बड़ा एक्शन लिया है। बसपा नेता अनुपम दुबे के ठंडी सड़क स्थित होटल 'गुरु शरणम पैलेस' को बुलडोजर के जरिए गिराया जा रहा है। इस समय होटल पर 2 बुलडोजर गरज रहे हैं। आज सुबह से ही प्रशासन होटल को गिराने की कार्रवाई में जुटा हुआ है और मौके पर भारी पुलिस बल तैनात है। 

सूत्रों के हवाले से ये खबर मिली थी कि हाई कोर्ट के दखल की बात सामने आने पर कुछ देर के लिए कार्रवाई में रुकावट आई थी लेकिन हाई कोर्ट से अनुपम दुबे को कोई राहत न मिलने पर प्रशासन ने फिर कार्रवाई तेज कर दी। बुलडोजरों ने होटल के पिछले हिस्से मोहल्ला अंडियाना की तरफ की दीवाल को गिरा दिया। 

आगरा जेल में बंद हैं अनुपम दुबे 

बसपा नेता अनुपम दुबे इस समय आगरा जेल में बंद हैं। उन पर गैंगस्टर, हत्या, रंगदारी समेत करीब चार दर्जन मुकदमे दर्ज हैं। हालही में उनकी पत्नी मीनाक्षी दुबे ने हाई कोर्ट से राहत मिलने की बात कही थी। लेकिन प्रशासन द्वारा की जा रही कार्रवाई को देखकर लगता है कि कोई राहत नहीं मिली है। 

कुछ दिन पहले अनुपम दुबे के फरार चल रहे छोटे भाई को भी लखनऊ से गिरफ्तार किया गया था। दुबे परिवार पर हो रही कार्रवाई से सरकार का संदेश साफ है कि अवैध कामों में लिप्त लोगों को बख्शा नहीं जाएगा। ठंडी सड़क पर जिस जगह प्रशासन द्वारा होटल को गिराने की कार्रवाई चल रही है, वहां भारी संख्या में पुलिस बल तैनात है।

भाजपा ने जारी की उम्मीदवारों की पहली सूची, इन 7 सांसदों को मिला टिकट

डेस्क: राजस्थान विधानसभा चुनाव को लेकर भाजपा ने अपने उम्मीदवारों की पहली लिस्ट जारी कर दी है। भाजपा की लिस्ट ने कई लोगों को चौंका दिया है। पार्टी ने पहली सूची में कुल 41 उम्मीदवारों के नाम घोषित किए हैं। बता दें कि इन 41 उम्मीदवारों में से 7 सांसदों को भी टिकट दिया गया है। 

इन सांसदों को टिकट

भाजपा ने सांसद राज्यवर्धन सिंह राठौर को झोटवाड़ा से टिकट दिया है। वहीं, पार्टी ने मंडावा सीट से नरेंद्र कुमार, विद्याधर नगर सीट से सांसद दिया कुमारी, तिजारा से सांसद बाबा बालक नाथ, सवाई माधोपुर से सांसद किरोड़ी लाल मीणा, सांचोर से देवजी पटेल और किशनगढ़ से सांसद भागीरथ पटेल को टिकट दिया है। 

इस तारीख को चुनाव

चुनाव आयोग ने सोमवार को ही राजस्थान समेत 5 राज्यों में विधानसभा चुनावों की तारीख का ऐलान कर दिया है। चुनाव आयोग के मुताबिक, राजस्थान में एक ही चरण में 23 नवंबर को विधानसभा चुनाव के लिए वोटिंग होगी। इसके साथ ही इन चुनाव के परिणाम को अन्य 4 राज्यों के साथ 3 दिसंबर को घोषित कर दिया जाएगा।

क्या होगा पूरा शेड्यूल?

चुनाव आयोग के मुताबिक, राजस्थान में चुनाव की अधिसूचना 30 अक्टूबर को जारी होगी। इसके बाद उम्मीदवार 6 नवंबर तक नामांकन दाखिल कर सकेंगे। 7 नवंबर को नामांकन की जांच की जाएगी। नामांकन वापस लेने की आखिरी तारीख 9 नवंबर होगी। 23 नवंबर को मतदान होगा और वहीं, 3 दिसंबर को चुनाव का परिणाम जारी किया जाएगा। 

राज्य में इतने करोड़ वोटर्स 

चुनाव आयोग की ओर से दी गई जानकारी के मुताबिक, राजस्थान में इस बार कुल 5.26 करोड़ मतदाता वोटिंग के लिए योग्य हैं। इनमें से 2.73 करोड़ पुरुष तो वहीं, 2.52 करोड़ महिला वोटर्स हैं। वहीं, 22.04 लाख ऐसे वोटर्स हैं जो पहली बार मतदान में हिस्सा लेने वाले हैं। 

बसपा ने भी जारी किए उम्मीदवार

दूसरी ओर बहुजन समाज पार्टी ने भी राजस्थान विधानसभा चुनाव के लिए 5 उम्मीदवारों की घोषणा कर दी है। बसपा ने डीग कुम्हेर से हरिओम शर्मा, तिजारा से इमरान खान, बानसूर से मुकेश यादव, बयाना-रूपवास से मदन मोहन भंडारी और दौसा से रामेश्वर बनियाना गुर्जर को टिकट दिया है।

हमास पर इजरायल के पलटवार के बाद फ्रांस में निशाने पर यहूदी, स्कूल में बम रखे जाने की सूचना से हड़कंप, कराया खाली

डेस्क: हमास पर इजरायल के भीषण पलटवार के बाद से ही विदेशों में बसे यहूदी आतंकियों के निशाने पर हैं। फ्रांस के एक स्कूल में कुछ दिन पहले शिक्षक की चाकू मार कर हत्या किए जाने के बाद से ही पुलिस और नागरिकों को अलर्ट पर रखा गया है। मगर उसी स्कूल में अब बम रखे जाने की सूचना ने खलबली मचा दी है। लिहाजा आनन-फानन में स्कूल को खाली करवा दिया गया है। 

फ्रांस के अधिकारियों का कहना है कि जिस स्कूल में पिछले सप्ताह एक शिक्षक को चाकू मारकर गंभीर रूप से घायल कर दिया गया था, वहीं बम रखे जाने की खबर मिली है। उसे बम की सूचना मिलने के बाद खाली कराया गया है। अधिकारियों के मुताबिक, फ्रांस के राष्ट्रपति ने सोमवार को एक सुरक्षा बैठक के लिए विदेश की अपनी यात्रा योजनाओं में कटौती की है। उत्तरी पास डे क्लाएस क्षेत्र के प्रान्त कार्यालय ने बताया कि पुलिस को अपनी वेबसाइट पर बम की सूचना प्राप्त हुई थी, जिसके बाद अर्रास में स्थित हाई स्कूल को खाली कराने का निर्णय लिया गया।

बम निरोधक दस्ता कर रहा जांच

पुलिस अधिकारियों के मुताबिक बम निरोधक दस्ता मौके पर पहुंच गया है। बम की सूचना के बाद से ही स्कूली छात्र-छात्राओं में हड़ंकप मच गया है। कार्यालय के मुताबिक, जब तक स्थिति पूरी तरह से साफ नहीं हो जाती तब तक के लिए सभी प्रकार के एहतियाती और सुरक्षा कदम उठाए जा रहे हैं। फ्रांस में चाकू मारने की घटना के बाद आतंकवादी घटनाओं को लेकर दहशत का माहौल है। इसलिए फ्रांस में सभी प्रमुख स्कूलों और बाजारों की सुरक्षा कड़ी कर दी गई है।

इजराइली हमले में मारा गया हमास का एक और बड़ा कमांडर, इजराइल पर अटैक में था अहम रोल

डेस्क: इजराइल पर 7 अक्टूबर को हमास ने तीन ओर से घातक हमले किए। इस हमले से इजराइल कराह उठा। इस हमले में हमास केस कमांडर मुएताज ईद की अहम भूमिका था। इजराइल के गाजा पट्टी पर किए गए पलटवार में यह हमास कमांडर भी मारा गया। इजराइल को इस कमांडर के 7 अक्टूबर को इजराइल पर अटैक के मामले में वांछित होने की खुफिया जानकारी मिली थी। सटीक खुफिया जानकारी पर गाजा के ​दक्षिण जिले में इस कमांडर मुएताज ईद को मारकर अंजाम तक पहुंचा दिया गया।

 

चुन-चुनकर हमास से बदला ले रही इजराइली सेना

दरअसल, इजरायल की सेना अपने देश पर हुए हमास के अटैक के बाद चुन-चुनकर हमास से बदला ले रही है। बड़ी ख़बर है कि इजरायली एयरस्ट्राइक में हमास का एक और बड़ा कमांडर मारा गया है। इस कमांडर का नाम मुएताज ईद था। मुएताज़ ईद ने 7 अक्टूबर के हमले में बड़ी भूमिका अदा की थी। इजरायल की खुफिया एजेंसी उसी दिन से इसके पीछे थी। सटीक खुफिया जानकारी के आधार पर इजरायली एयरफोर्स ने गाज़ा के दक्षिणी ज़िले में एयरस्ट्राइक करके मुएताज़ को उसके अंजाम तक पहुंचा दिया है। इजरायइ की इस एयरस्ट्राइक में हमास का मिलिट्री बेस पूरी तरह से तबाह हो गया है, जिसका वीडियो भी जारी हुआ है।

24 घंटे में हमास के 250 ​ठिकानों को किया तबाह, कई कमांडर मारे गए

इससे पहले कल रात में भी गाजा पर भीषण हवाई हमले हुए थे। इस हमले में हमास के कई आतंकी मारे गए। कई मिलिट्ट्री ठिकाने ध्वस्त हो गए। इजरायल साफ कर चुका है कि हमास को पूरी तरह से मिटाकर रहेंगे। उसके एक एक आतंकी को ढेर कर देंगे। इसी कड़ी में अब तक हमास के कई टॉप कमांडर मारे जा चुके हैं, जिसमें बिलाल अल केदरा, अली कादी, मुराद अबू मुराद का नाम भी शामिल हैं। पिछले 24 घंटे में इजरायली एयफोर्स ने हमास के करीब 250 ठिकानों को तबाह कर दिया है।

निठारी कांड: लड़कियों-बच्चों के साथ हैवानियत की वो दास्तां, जिसे सुनकर आंखों में उतर आएगा खून

डेस्क: नोएडा के निठारी गांव की कोठी D-5, जो मोनिंदर सिंह पंढ़ेर की थी और उसके साथ उसका नौकर सुरेंद्र कोली रहता था। वह कोठी एक ऐसे कांड, ऐसी हैवानियत की गवाह है, जिसे सुनकर आज भी आपकी आंखों में खून उतर आएगा। साल 2006 में निठारी के कोठी नंबर D-5 के बगल वाले नाले से एक-एक कर कई नरकंकाल मिले थे। इस कांड ने ऐसा खुलासा किया था जिसे सुनकर पूरे देश में खलबली मच गई थी। पंढेर के नौकर सुरेंद्र कोली पर आरोप लगा था कि वह कोठी पर लड़कियों को लाता था औऱ उनसे रेप करता था और फिर उनकी हत्या कर लाश के टुकड़े खाता था और हड्डियां बाहर नाले में फेंक देता था। यह खुलासा तब हुआ था जब निठारी गांव की दर्जनों लड़कियां गायब हो गईं और उनका कुछ पता नहीं चल सका था। 

साल-2005 और 2006 में 19 बच्चियों, युवतियों और महिलाओं की रेप के बाद हत्या का खुलासा हुआ था और हैवानियत की ये बात सामने आई थी कि उनकी हत्या कर हत्यारों ने खा लिया। खुलासे के बाद इस केस में कुल 19 मुकदमे दर्ज हुए थे। इस जुर्म में निचली अदालत ने सुरेंद्र कोली को फांसी की सजा सुनाई थी। इसमें तीन मुकदमों में पुलिस ने साक्ष्य के अभाव में क्लोजर रिपोर्ट लगा दी। 16 मुकदमों में CBI कोर्ट गाजियाबाद का फैसला आ चुका है। 13 मुकदमों में सुरेंद्र कोली को सजा-ए-मौत सुनाई और तीन में बरी किया गया।

जानिए कौन हैं मोनिंदर पंढ़ेर और सुरेंद्र कोली

मोनिंदर सिंह मूल रूप से पंजाब का रहने वाला था और साल 2000 में दिल्‍ली आया था। वहीं, सुरेंद्र कोली, जो उत्तराखंड के अल्‍मोड़ा के एक गांव का रहने वाला था दि्ली में एक ब्रिगेडियर के घर पर खाना बनाने का काम करता था। कहा जाता है कि कोली खाना बेहतरीन बनाता था। साल 2003 में वह पंढे़र से मिला और उसके घर पर नौकर बनकर का काम करने लगा। सुरेंद्र कोली के आने के बाद मोनिंदर सिंह की फैमिली उसे छोड़कर पंजाब चली गई। तब से वह कोली के साथ रहने लगा। मोनिंदर सिंह अक्सर इस कोठी पर कॉलगर्ल बुलाता रहता था। एक बार उसके नौकर सुरेंद्र कोली ने वहां आई एक कॉलगर्ल से रिलेशन बनाने को कहा तो कॉलगर्ल ने उससे ऐसा कुछ कह दिया कि सुरेंद्र नाराज हो गया और उसने गला दबाकर उसकी हत्या कर दी और लाश को कोठी के पासवाले नाले में फेंक दिया। यह निठारी गांव की D-5 कोठी में पहला मर्डर था।

लड़कियों-बच्चों से रेप के बाद कर देता था हत्या

इसके बाद ऊधमसिंह नगर (उत्तराखंड) से आई एक लड़की दीपिका उर्फ पायल नौकरी की तलाश में 7 मई 2006 को मोनिंदर सिंह पंढेर के पास गई थी, वो भी कोठी में जाते ही गायब हो गई थी। पायल के गायब होने के बाद 24 अगस्त 2006 को नोएडा पुलिस ने अपहरण का केस दर्ज कर जांच शुरू की तो दीपिका का मोबाइल सुरेंद्र कोली के पास से मिला।उसके बाद कोठी में काम करने वाली 25 साल की आनंदा देवी गायब हो गई थी। इस तरह से कई लड़कियां-महिलाएं और बच्चे गायब हो गए थे। पायल के गायब होने के केस में पुलिस ने जब कोली और पंढे़र से सख्ती से पूछताछ की तो उन्होंने दीपिका उर्फ पायल की रेप के बाद हत्या कर लाश कोठी के बराबर में नाले में फेंकने की बात कुबूल ली। उसके बाद 29 और 30 दिसंबर 2006 को नोएडा पुलिस ने कोठी के पास के नाले से बड़ी संख्या में मानव कंकाल बरामद किए, जो सिर्फ लड़कियों के थे।

हुआ था चौंकाने वाला खुलासा

इसके बाद जो खुलासा हुआ वो काफी चौंकाने वाला था। पुलिस को पता चला कि मोनिंदर पंधेर और सुरेंदर कोली कोठी पर लड़कियों को किसी बहाने से बुलाते थे और रेप के बाद हत्या करके उनकी लाश इस नाले में फेंक देते थे। लोगों का यह भी कहना था कि निठीरी की पंढेर की कोठी से मानव अंगों का व्यापार होता था। इतना ही नहीं हत्या के बाद शव के टुकड़ों को पका कर खाने की भी बात सामने आई थी। कहा जाता है कि मामले का आरोपी सुरेंद्र कोली नेक्रोफीलिया नामक मानसिक बीमारी से ग्रसित था और वह बच्चों के प्रति आकर्षित होने लगा था। वह कोठी से गुजरने वाले बच्चों को पकड़ कर उनके साथ कुकर्म करता और फिर उनकी हत्या कर देता था।

सुनाई गई थी फांसी की सजा

पुलिस ने मोनिंदर और सुरेंद्र के खिलाफ रेप और हत्या के कुल 19 मामले दर्ज किए। इस केस में CBI ने सुरेंद्र कोली को हत्या, अपहरण, रेप और सबूत मिटाने के केस में आरोपी बनाया था. जबकि, मनिंदर को मानव तस्करी का भी आरोपी बनाया था। सीबीआई ने 46 गवाहों को पेश करके उनके बयान दर्ज कराए थे जबकि बचाव पक्ष की तरफ से महज 3 गवाह पेश किए गए। आरोप तय होने के बाद दोनों दोषी करार दिए गए और इस जघन्य अपराध के मामले में कोली और मोनिंदर को फांसी की सजा सुनाई गई थी। लेकिन अब उनको सजा से बरी कर दिया गया है। बचे हुए मामलों में केस जारी रहेगा।

इंदौर के व्यापारी के पास से बरामद हुआ 3 करोड़ का सोना, जाँच में जुटी पुलिस

मध्य प्रदेश के जबलपुर में पुलिस ने इंदौर के एक व्यक्ति को सवा 5 किलो सोने के साथ पकड़ा है। बरामद सोने का भाव तकरीबन 3 करोड़ रुपये है। बरामद सोना तथा युवक को जांच के लिए आयकर विभाग के सुपुर्द कर दिया है। गढ़ा थाना प्रभारी बृजेष मिश्रा से मिली जानकारी के मुताबिक, रविवार की रात लगभग साढ़े आठ बजे खबर मिली कि एक युवक बैग में संदिग्ध सामान लेकर बायपास से शहर की ओर आ रहा है। 

पुलिस को युवकों को त्रिपुरी चौराहा के पास ऑटो में बैठा मिला। शख्स ने स्वयं का नाम सौरभ जैन आयु 38 निवासी इंदौर बताया था तथा बैग की तलाशी देने से मना कर दिया था। युवक को थाने लाकर बैग की तलाशी ली गयी तो उसमें 5 किलो 274 ग्राम सोने के आभूषण थे। जिनका दाम 3 करोड़ रुपये से ज्यादा था।

 पूछताछ में युवक ने बताया कि वह सोने-चांदी के आभूषण का व्यापार करता है। स्थानीय कारोबारियों को आभूषण के सैम्पल दिखाने आया था। युवक आभूषण के संबंध में कोई दस्तावेज प्रस्तुत नहीं कर पाया। आभूषण व युवक को जांच के लिए आयकर विभाग के सुपुर्द कर दिया गया है।

World Anaesthesia Day: एनेस्थीसिया क्या है और कब दिया जाता है? जानें इसके बारे में कुछ जरूरी बातें

डेस्क: एनेस्थीसिया के बारे में आपने खूब सुना होगा। जैसे कि सर्जरी से पहले एनेस्थीसिया लगाया गया । एनेस्थीसिया लगाने के बाद कुछ महसूस नहीं हुआ और व्यक्ति सो गया। ये सब एनेस्थीसिया से जुड़ी बातें जबकि ज्यादातर लोगों को इसके बारे में सही जानकारी ही नहीं होती। ज्यादातर लोग नहीं जानते कि ये है क्या। डॉक्टर इसका इस्तेमाल कब और क्यों करते हैं। शरीर पर एनेस्थीसिया के उपयोग का क्या प्रभाव पड़ता है। आइए, जानते हैं इन तमाम चीजों के बारे में विस्तार से। साथ ही जानेंगे एनेस्थीसिया के प्रकार।

एनेस्थीसिया क्या है-

एनेस्थीसिया एक ऐसी दवा है जिसे मरीज को दर्द से बचाने के लिए दिया जाता है। हर सर्जरी पहले मरीज को ये दिया जाता है ताकि उसे मालूम ही न पड़े कि सर्जरी के दौरान उसके साथ क्या हुआ। एनेस्थीसिया से रोगी गहरी नींद में चला जाता है। इससे शरीर की संवेदानाएं सुन्न हो जाती हैं और किसी चीज का अहसास नहीं हो पाता है। एनेस्थीसिया के लिए जिन दवाओं का उपयोग किया जाता है उन दवाओं को एनेस्थेटिक कहा जाता है। इनमें शामिल हो सकते हैं 

-गैस एनेस्थीसिया

-इंजेक्शन 

-त्वचा या आंखों पर लगाने वाले टॉपिकल एनेस्थीसिया। 

एनेस्थीसिया कब दिया जाता है-

आमतौर पर एनेस्थीसिया का इस्तेमाल सभी सर्जरी के दौरान किया जाता है। सिर, छाती और पेट के हिस्से की सर्जरी में मुख्य रूप से इस्तेमाल तकिया जाता है क्योंकि इन हिस्सों में सर्जरी बड़ी और दर्दनाक हो सकती है। इसके अलावा कहीं पर टांके लगाने और खोलने के दौरान भी डॉक्टर एनेस्थीसिया देता है। इसके अलावा वो तमाम चीजें जिनमें शरीर और नसों के बीच दर्द को सर्कुलेट हो सकता है, एनेस्थीसिया देकर ब्रेन से शरीर का कनेक्शन काट दिया जाता है ताकि व्यक्ति को कुछ महसूस न हो।

एनेस्थीसिया के प्रकार-

एनेस्थीसिया मुख्य रूप से तीन प्रकार के होते हैं। 

1. लोकल एनेस्थीसिया-

इसके जरिए शरीर के बस एक छोटे से हिस्से को सुन्न कर दिया जाता है। ये मोतियाबिंद सर्जरी, डेंटल सर्जरी या स्किन बायोप्सी के दौरान दिया जाता है। 

2. जेनेरल एनेस्थीसिया-

लंबी और बड़ी सर्जरी के दौरान ये वाला एनेस्थीसिया दिया जाता है। ये सर्जरी किसी भी अंग की हो सकती है।

3. रीजनल एनेस्थीसिया-

रीजनल एनेस्थीसिया शरीर के हिस्से में दर्द को रोकने के लिए दिया जाता है। जैसे बच्चे के जन्म के दर्द को कम करने के लिए या सी-सेक्शन के दौरान, घुटने की सर्जरी के दौरान, हाथों और कूल्हों की सर्जरी के दौरान एनेस्थीसिया दिया जाता है। 

एनेस्थीसिया के साइड इफेक्ट क्या होते हैं

एनेस्थीसिया के साइड इफेक्ट हर किसी पर अलग हो सकते हैं। जैसे कि 

-मतली और उल्टी

-पीठ दर्द या मांसपेशियों में दर्द

-थकान और कमजोरी

-खुजली

-चक्कर आना

 बता दें कि एनेस्थीसिया लगने के बहाद इसका असर लगभग 12 से 18 घंटे रह सकता है। इसका अनुभव हर किसी के लिए अलग हो सकता है। इसलिए इस दौरान डॉक्टर की निगरानी में रहना और उन्हीं की बात मानना सबसे सही सुझाव है।

AAP नेता राघव चड्ढा की सदस्यता रद्द करने का मामला, राज्यसभा सचिवालय को 'सुप्रीम' नोटिस, 30 अक्टूबर को सुनवाई

सुप्रीम कोर्ट आज सोमवार को आम आदमी पार्टी (AAP) नेता राघव चड्ढा की राज्यसभा से अनिश्चितकालीन निलंबन को चुनौती देने वाली याचिका पर विचार करने के लिए सहमत हो गया और इस मुद्दे पर निर्णय लेने में अटॉर्नी जनरल से सहायता मांगी। मुख्य न्यायाधीश (CJI) डी वाई चंद्रचूड़ और न्यायमूर्ति जे बी पारदीवाला और न्यायमूर्ति मनोज मिश्रा की पीठ ने चड्ढा का प्रतिनिधित्व कर रहे वरिष्ठ वकील राकेश द्विवेदी और वकील शादान फरासत की दलीलों पर ध्यान दिया कि निलंबन उस विशेष सत्र से आगे नहीं बढ़ाया जा सकता है, जिसके दौरान सदस्य को निलंबित करने का निर्णय लिया गया था।।

शीर्ष अदालत ने केवल उस याचिका पर राज्यसभा सचिवालय को नोटिस जारी किया जिस पर 30 अक्टूबर को सुनवाई होगी। चड्ढा ने राज्यसभा सचिवालय के अलावा सदन के अध्यक्ष और विशेषाधिकार समिति को अपनी याचिका में पक्षकार बनाया था। द्विवेदी ने कहा कि वह फिलहाल याचिका में कोई अंतरिम राहत नहीं मांग रहे हैं। 

राज्यसभा ने 11 अगस्त को एक प्रस्ताव पारित किया था। सदन का नेतृत्व करने वाले पीयूष गोयल द्वारा प्रस्तुत इस प्रस्ताव में AAP (आम आदमी पार्टी) नेता के खिलाफ कार्रवाई का अनुरोध किया गया था। AAP नेता ने कुछ राज्यसभा सदस्यों के नाम उनकी अनुमति के बिना प्रस्तावित समिति में शामिल कर दिये थे। यह समिति राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र दिल्ली सरकार (संशोधन) विधेयक, 2023 की समीक्षा करने के लिए थी। चड्ढा को विशेषाधिकार समिति की रिपोर्ट लंबित रहने तक "नियमों के घोर उल्लंघन, कदाचार, उद्दंड रवैया और अवमाननापूर्ण आचरण" के लिए मानसून सत्र के आखिरी दिन निलंबित कर दिया गया था।