मध्यप्रदेश में कर्मचारियों के PF के 23 लाख चुकाने के पैसे नहीं, मैडम ने ली 20 लाख की लग्जरी गाड़ी, अपने इनकम टैक्स रिटर्न में गड़बड़ी की, मामला दर्
सेंटर फॉर एंटरप्रेन्योरशिप डेवलपमेंट मध्यप्रदेश (CEDMAP) की एग्जीक्यूटिव डायरेक्टर (ईडी) अनुराधा सिंघई के खिलाफ एमपी नगर थाने में धोखाधड़ी की FIR दर्ज हुई है। आरोप है कि उन्होंने नियुक्ति पाने के लिए इनकम टैक्स रिटर्न में गड़बड़ी की है। उन्होंने अपने पड़ोसी को नौकरी दी और अपनी जाति के लोगों को ही सेडमैप में नौकरी पर रखा। अनुराधा सिंघई दो साल से इस संस्थान की ईडी हैं। सेडमैप एमपी का इकलौता ऐसा संस्थान है जो सरकारी विभागों में आउटसोर्स कर्मचारियों का सिलेक्शन करता है।
FIR के मुताबिक 2019-20 के इनकम टैक्स रिटर्न (आईटीआर) में उनकी आय 9.74 लाख बताई गई है। इसमें 6 लाख रुपए की इनकम मकान किराए से दिखाई गई है। 2020-21 के आईटीआर में अचानक ये आय 20.20 लाख हो गई। इसमें भी 6 लाख रुपए किराए से मिले, लेकिन अचानक बढ़ी हुई ये आय भी नियुक्ति के लिए जरूरी शर्त 15 लाख की कास्ट टू कंपनी (सीटीसी) से कम है। सीटीसी वह राशि होती है, जो कंपनी किसी एक कर्मचारी पर वेतन-भत्तों आदि पर खर्च करती है।
मैडम पर लगे आरोपों की फेहरिस्त लंबी है। ये भी आरोप हैं कि उन्होंने सेडमैप में अपने परिचित और रिश्तेदारों को अहम पद दिए। कर्मचारियों के पीएफ के पैसे देने के लिए संस्थान के पास पैसे नहीं थे, लेकिन इसी दौरान 2022 में उन्होंने अपने निजी इस्तेमाल के लिए करीब 20 लाख रुपए कीमत की लग्जरी एमजी हेक्टर कार सेडमैप से खरीदवा ली।
पड़ोसी को वित्तीय सलाहकार बनवाया
सेडमैप के नियमों के तहत किसी परिचित या रिश्तेदार को सेडमैप में कोई लाभ का पद नहीं दिया जा सकता। अनुराधा सिंघई ने अपने पड़ोसी बसंत कुमार श्रीवास्तव को वित्तीय सलाहकार का पद दिया। अपने परिचितों को अवैध वित्तीय लाभ पहुंचाया। चार्टर्ड अकाउंटेंट राहुल जैन को मैन पावर डिवीजन का काम ठेके पर दिया। उनकी पार्टनरशिप वाली फर्म सीपी जैन एंड कंपनी को इंटरनल ऑडिट और एकेबी जैन एंड कंपनी को लीगल ऑडिट (वैधानिक अंकेक्षण) का काम बढ़ी हुई दरों पर दिया। अकाउंट सेक्शन में निखिल जैन को नियुक्त किया।
सेडमैप के ईडी पद के लिए निकले विज्ञापन के अनुसार कार्यकारी संचालक के पद हेतु 10 वर्षों का कार्य अनुभव जरूरी था, लेकिन सिंघई के पास ऐसा कोई अनुभव नहीं था। उनका अनुभव केवल इंडो यूरोपियन चैंबर ऑफ कॉमर्स में कार्य करने का था, जो उनका ही संस्थान था।
सेडमैप ईडी रहते दूसरी कंपनी में डायरेक्टर रहीं, मीटिंग में शामिल हुईं।
सेडमैप ईडी अनुराधा सिंघई पर ये भी आरोप हैं कि उन्होंने पद पर रहते हुए निजी कंपनी के हितों में भी काम किया। पुलिस को दिए दस्तावेज में बताया गया है कि उन्होंने 28 जुलाई 2021 को कार्यकारी संचालक के पद पर जॉइनिंग ली, लेकिन कल्पमेरु सॉल्यूशन प्राइवेट लिमिटेड कंपनी से उन्होंने अपने इस्तीफे की सूचना 15 मार्च 2022 को दी। इसमें बताया कि उन्होंने जॉइनिंग से पहले 25 जुलाई 2021 को ही इस्तीफा दे दिया था। सवाल है कि यदि उन्होंने इस्तीफा दे दिया था तो इसकी जानकारी देने में इतना वक्त क्यों लगा?
अनुराधा सिंघई सेडमैप की ईडी रहते हुए निजी कंपनी की मीटिंग में डायरेक्टर की हैसियत से 30 दिसंबर 2021 को शामिल हुईं। इसके भी दस्तावेज पुलिस को दिए गए हैं। एमपी नगर पुलिस ने अपने जांच प्रतिवेदन में कोर्ट को बताया है कि इन तथ्यों के आधार पर इस मामले में आगे और जांच की जरूरत है।
एमपी नगर के थाना प्रभारी सुधीर अरजरिया कहते हैं कि कोर्ट के निर्देश के बाद इस मामले में एफआईआर हुई है। हालांकि, गिरफ्तारी के सवाल पर वे कहते हैं कि केस गंभीर प्रकृति का है। इस मामले में जो भी जरूरी होगा, वो कार्रवाई की जाएगी।
Aug 07 2023, 17:25