दिसंबर महीने में भी नहीं पड़ रही ठंड, रबी फसलों को हो रहा भारी नुकसान
डेस्क : फसलों पर मौसम का मार पड़ रहा है।सूबे में दिसंबर की रात गर्म रह रही है। किसानों को यह परेशान कर रहा है। आगे भी औसत से अधिक तापमान रहा तो रबी फसलों खासकर गेहूं, मसूर और सरसों को नुकसान होना तय है। इससे रबी फसलों का उत्पादन प्रभावित होने की आशंका है। गेहूं सहित अन्य रबी फसलों के लिए जरूरी है कि न्यूनतम यानी रात का तापमान 7 से 9 डिग्री सेल्सियस के बीच हो। अभी यह 10 से 12 डिग्री सेल्सियस रह रहा है। दिन का औसत तापमान 24 से 29 डिग्री रिकॉर्ड किया जा रहा है।
मौसम विभाग के पूर्वानुमान के अनुसार अगले एक सप्ताह तक इसी तरह का मौसम रहेगा। किसानों की असली चिंता यही है। इससे पौधों का विकास बाधित होगा, उसमें परागण जल्दी हो जाने से दाने पुष्ट नहीं बन पाएंगे। कीट का प्रकोप बढ़ेगा। इसका सीधा असर उत्पादन पर पड़ेगा। राज्य के ज्यादातर इलाकों में गेहूं की फसल पर अभी यही असर दिख रहा है।
कृषि मौसम वैज्ञानिक के अनुसार रबी फसल के लिए सामान्य तापमान 7-8 डिग्री अच्छा माना जाता है। वरीय कृषि वैज्ञानिक डॉ. पी.के. द्विवेदी के अनुसार तापमान अधिक होने पर तेज वानस्पतिक विकास से प्रतिकूल प्रभाव पड़ सकता है। पूसा कृषि विश्वविद्यालय के वैज्ञानिक ने कहा कि यदि सर्दियों में तापमान सामान्य से अधिक हो जाए, तो फसलों की वृद्धि कम हो सकती है, पौधे कमजोर होंगे। अचानक तापमान में वृद्धि से परागण प्रभावित हो सकता है, जिससे दाने बनने की प्रक्रिया पर नकारात्मक प्रभाव पड़ता है।
कृषि वैज्ञानिकों के अनुसार स्थिति चिंताजनक है लेकिन फिलहाल स्थिति नियंत्रण में है। अगले एक सप्ताह तक भी यदि तापमान में कमी आती है तो स्थिति सुधर सकती है। ऐसा नहीं हुआ तो उपज में गिरावट तय है। पौधे में दाने कम आएंगे, दाने आएंगे तो वे छोटे होंगे। वैज्ञानिकों के अनुसार गेहूं, चना, मसूर, सरसों आदि फसलें इस समय मौसम की मार झेल रही हैं। इसके अलावा आलू भी लगाए जा रहे हैं, उस पर भी मौजूदा मौसम अपनी प्रभाव डाल सकता है।
Dec 23 2024, 10:24