बिहार में 3 आईपीएस अधिकारियों का तबादल 1 को प्रोन्नति, गृह विभाग ने जारी की अधिसूचना
डेस्क : बिहार में एकबार फिर बड़ा प्रशासनिक फेर-बदल हुआ है। राज्य सरकार ने भारतीय पुलिस सेवा (आईपीएस) के तीन अधिकारियों का तबादला कर दिया है। वहीं एक आईपीएस अधिकारी को प्रोन्नति दी गयी है और एक आईपीएस अधिकारी को अतिरिक्त प्रभार से मुक्त कर दिया गया है। दूसरी ओर, बिहार पुलिस सेवा के डीएसपी स्तर के अधिकारी को स्थानान्तरित किया गया है। बुधवार को गृह विभाग की ओर से इस संबंध में अधिसूचना जारी की गयी।
गृह विभाग से जारी अधिसूचना के अनुसार एडीजी, यातायात सुधांशु कुमार को एडीजी सह अपर आयुक्त असैनिक सुरक्षा के अतिरिक्त प्रभार से मुक्त कर दिया गया है। नागरिक सुरक्षा की डीआईजी सह उप निदेशक को अनुसूईया रणसिंह साहू को प्रोन्नत करते हुए पुलिस महानिरीक्षक, नागरिक सुरक्षा बनाया गया है।
पटना के एसपी, विधि व्यवस्था विवेक कुमार को प्रोन्नत और स्थानांतरित करते हुए अपराध अनुसंधान विभाग में डीआईजी नियुक्त किया गया है। एसडीआरएफ के समादेष्टा मो. फरोगुद्दीन को प्रोन्नत और स्थानांतरित करते हुए गृह रक्षावाहिनी और अग्निशमन सेवाएं का डीआईजी सह उप महा समादेष्टा बनाया गया है। वहीं, गृह रक्षा वाहिनी के डीआईजी मृत्युंजय कुमार चौधरी तबादला करते हुए निगरानी अन्वेषण ब्यूरो में डीआईजी बनाया गया है।
दूसरी ओर, सीआईडी के अपर पुलिस अधीक्षक राजेश कुमार नंबर-1 को स्थानांतरित करते हुए एसडीआरएफ का समादेष्टा नियुक्त किया गया है।


 
						





 
 



 
   
   
   
   डेस्क : बिहार विधान मंडल के शीतकालीन सत्र का आज तीसरा दिन है। आज सदन में दो महत्वपूर्ण विधेयक पेश होंगे। साथ हीं विधायकों के वेतन और भत्तों से संबंधित नियमावली में संशोधन पर चर्चा की जाएगी। वहीं सदन की कार्यवाही शुरु होने से पहले ही विपक्ष का भारी हंगामा देखने को मिल रहा है। आज सदन के बाहर विपक्ष के नेता आंखों पर काली पट्टी बांधकर पहुंचे। सदन के गेट पर विपक्ष के नेता तख्ती लेकर बिहार सरकार के खिलाफ प्रदर्शन किया। वही सदन के अंदर आज एक और बड़ी बात हुई। सदन की कार्यवाही के दौरान भाजपा अपनी ही सरकार के एक योजना के खिलाफ राजद के साथ एकजुट हो गई। ग्राम पंचायतों में सफाई कार्य में लगे स्वच्छता कर्मियों के मानदेय भुगतान नहीं होने और स्वच्छता कार्य में उपयोग किए जाने वाले ठेला किस्म की गाड़ियों की जर्जर स्थिति के मुद्दे पर भाजपा और राजद दोनों दलों के विधायक एकसुर में विरोध में उतर गए। भाजपा के अमरेन्द्र प्रताप सिंह ने इस मुद्दे को उठाया। इस पर ग्रामीण विकास विभाग के मंत्री श्रवण कुमार ने कहा पंचायतों में स्वच्छता कर्मियों के मानदेय भुगतान एक वर्ष तक विभाग द्वारा किया जाता है। उसके बाद पंचायत अपने स्तर पर उनका भुगतान करती है। इसके लिए 30 रुपए प्रति महीना प्रति घर लेती है। हालाँकि श्रवण कुमार के इस जवाब पर भाजपा के सदस्य संतुष्ट नहीं हुए। राजद की ओर से सूर्यकान्त पासवान सहित कई सदस्यों ने एक सुर में कहा कि पंचायतों में स्वच्छता कर्मियों के मानदेय भुगतान कई महीनों से शेष है। हालाँकि श्रवण कुमार ने कहा कि ऐसे स्वच्छता कर्मियों का नाम बताया जाए हम उनका मानदेय भुगतान 15 दिनों में कराएंगे। इस पर राजदस सदस्यों ने फिर से कहा कि यह संख्या कोई एक दो नहीं बल्कि बड़ी संख्या में है। ऐसे में स्वच्छता कर्मियों के मानदेय भुगतान के मुद्दे पर भाजपा और राजद के सदस्य एक सुर में सदन में नीतीश सरकार के विभाग के खिलाफ एकजुट दिखे।
 डेस्क : बिहार विधान मंडल के शीतकालीन सत्र का आज तीसरा दिन है। आज सदन में दो महत्वपूर्ण विधेयक पेश होंगे। साथ हीं विधायकों के वेतन और भत्तों से संबंधित नियमावली में संशोधन पर चर्चा की जाएगी। वहीं सदन की कार्यवाही शुरु होने से पहले ही विपक्ष का भारी हंगामा देखने को मिल रहा है। आज सदन के बाहर विपक्ष के नेता आंखों पर काली पट्टी बांधकर पहुंचे। सदन के गेट पर विपक्ष के नेता तख्ती लेकर बिहार सरकार के खिलाफ प्रदर्शन किया। वही सदन के अंदर आज एक और बड़ी बात हुई। सदन की कार्यवाही के दौरान भाजपा अपनी ही सरकार के एक योजना के खिलाफ राजद के साथ एकजुट हो गई। ग्राम पंचायतों में सफाई कार्य में लगे स्वच्छता कर्मियों के मानदेय भुगतान नहीं होने और स्वच्छता कार्य में उपयोग किए जाने वाले ठेला किस्म की गाड़ियों की जर्जर स्थिति के मुद्दे पर भाजपा और राजद दोनों दलों के विधायक एकसुर में विरोध में उतर गए। भाजपा के अमरेन्द्र प्रताप सिंह ने इस मुद्दे को उठाया। इस पर ग्रामीण विकास विभाग के मंत्री श्रवण कुमार ने कहा पंचायतों में स्वच्छता कर्मियों के मानदेय भुगतान एक वर्ष तक विभाग द्वारा किया जाता है। उसके बाद पंचायत अपने स्तर पर उनका भुगतान करती है। इसके लिए 30 रुपए प्रति महीना प्रति घर लेती है। हालाँकि श्रवण कुमार के इस जवाब पर भाजपा के सदस्य संतुष्ट नहीं हुए। राजद की ओर से सूर्यकान्त पासवान सहित कई सदस्यों ने एक सुर में कहा कि पंचायतों में स्वच्छता कर्मियों के मानदेय भुगतान कई महीनों से शेष है। हालाँकि श्रवण कुमार ने कहा कि ऐसे स्वच्छता कर्मियों का नाम बताया जाए हम उनका मानदेय भुगतान 15 दिनों में कराएंगे। इस पर राजदस सदस्यों ने फिर से कहा कि यह संख्या कोई एक दो नहीं बल्कि बड़ी संख्या में है। ऐसे में स्वच्छता कर्मियों के मानदेय भुगतान के मुद्दे पर भाजपा और राजद के सदस्य एक सुर में सदन में नीतीश सरकार के विभाग के खिलाफ एकजुट दिखे।
 
 
   
   
  
Nov 28 2024, 09:38
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