तस्लीमा नसरीन का रेजिडेंसी परमिट रीन्यू, बांग्लादेश सरकार को लगेगी मिर्ची
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पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना के प्रत्यर्पण की मांग कर रहे बांग्लादेश को भारत ने एक और करारी चोट दी है। शेख हसीना का “बचाव” करने के बाद भारत ने बांग्लादेश की निर्वासित लेखिका तस्लीमा नसरीन का निवास परमिट बढ़ाने का फैसला किया है। भारत ने कट्टरपंथियों के डर से बांग्लादेश से भारत में स्वनिर्वासन झेल रहीं जानी-मानी लेखिका तस्लीमा नसरीन का रेजिडेंसी परमिट रीन्यू कर दिया है। गौरतलब है कि तसलीमा नसरीन का भारत में निवास का परमिट एक्सपायर हो गया था। जिसके बाद तसलीमा नसरीन ने सोशल मीडिया पर एक पोस्ट लिखकर गृह मंत्री से मदद मांगी थी।
तसलीमा नसरीन ने 21 अक्टूबर को गृहमंत्री को ट्वीट कर मदद मांगी थी। तसलीमा नसरीन ने एक्स पर लिखा था कि ‘करीब 20 सालों से भारत मेरा दूसरा घर है।’ नसरीन ने गृह मंत्री अमित शाह से मदद मांगते हुए बताया था कि गृह मंत्रालय ने जुलाई से उनका रेजिडेंट परमिट रिन्यू नहीं किया है। परमिट रिन्यू न होने से मैं परेशान हूं। अगर सरकार मुझे भारत में रहने देगी, तो मैं शुक्रगुजार रहूंगी।
लेखिका के गुहार लगाने के अगले ही दिन मंगलवार को उनका रिजिडेंस परमिट रीन्यू हो गया। उन्होंने इसके लिए एक्स पर एक और पोस्ट करके अमित शाह को शुक्रिया कहा।
तसलीमा नसरीन को मुस्लिम कट्टरपंथियों का कोपभाजन उनकी बहुचर्चित किताब लज्जा की वजह से बनना पड़ा था। उन्हें अपनी जान बचाने लिए ठीक उसी तरह बांग्लादेश छोड़ना पड़ा जैसे शेख हसीना को छोड़ना पड़ा था। 'लज्जा' में उन्होंने 1992 में अयोध्या में बाबरी विध्वंस के बाद बांग्लादेश में हिंदुओं के साथ हुए जुल्म को बयां किया था। उन्होंने अपनी किताब में मजहबी कट्टरता और उसका व्यक्तियों व समाज पर पड़ने वाले खतरनाक असर को बयां किया था। इसी किताब की वजह से 1993 में कट्टरपंथियों ने उनके खिलाफ फतवा जारी किया था। कट्टरपंथी उनके खून के प्यासे बन गए। उन्हें अपनी जान बचाने के लिए बांग्लादेश से भागना पड़ा था। तब से वह भारत में ही रह रही हैं।
वहीं, बांग्लादेश की अंतरिम सरकार बार-बार शेख हसीना के प्रत्यर्पण की बात उठाती रही है। बांग्लादेश की तत्कालीन प्रधानमंत्री शेख हसीना 5 अगस्त को अपनी जान बचाते हुए हेलिकॉफ्टर से भारत भाग आई थीं। बांग्लादेश की एक अदालत ने 77 साल की शेख हसीना के खिलाफ अरेस्ट वॉरंट जारी किया है। उन्हें 18 नवंबर को कोर्ट में पेश होने का आदेश दिया गया है। हसीना के खिलाफ अरेस्ट वॉरंट के बारे में पूछे जाने पर पिछले हफ्ते विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने कहा था कि वह अपनी सुरक्षा के लिए भारत आई हैं और यहां रहना जारी रखेंगी।
Oct 23 2024, 16:20