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*वो चित्रकार जिसने सजाया हमारा संविधान, एक नाम जो संविधान की हर पृष्ठ पर है मौजूद, जानिए दिलचस्प बातें

#knowaboutwhodecoratedour_constitution

हमारा संविधान 26 जनवरी 1950 को लागू हुआ। संविधान को बनाने में 2 साल 11 महीने और 18 दिन लगे थे। हममें से ज्यादातर लोगों को ये पता है कि भारत का संविधान किसने बनाया। लेकिन क्या हमें इस बात की जानकारी है कि हमारा संविधान किसने सजाया? 

29 अगस्त 1947 को भारतीय संविधान के निर्माण के लिए प्रारूप समिति की स्थापना की गई और इसके अध्यक्ष के रूप में डॉ. भीमराव अंबेडकर को जिम्मेदारी सौंपी गई। दुनिया भर के तमाम संविधानों को बारीकी से परखने के बाद डॉ. अंबेडकर ने भारतीय संविधान का मसौदा तैयार कर लिया। हम यह जानते हैं कि संविधान की प्रारूप समिति के अध्यक्ष डॉ. भीमराव अंबेडकर थे जिनके निर्देशन में भारत का संविधान लिखा गया। लेकिन क्या हम ये जानते हैं कि हमारे संविधान को जिन चित्रों से सजाया गया है, वो किसके निर्देशन में तैयार किया गया।

बता दें कि इसे बनाने वाले थे विख्यात चित्रकार नंदलाल बोस। दरअसल जब संविधान तैयार किया जा रहा था, उस वक्त तत्कालीन प्रधानमंत्री जवाहर लाल नेहरू इन्हें सजाने वाला ढूंढ रहे थे। इसी दौरान प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू शांतिनिकेतन में आए हुए थे। तब उनकी मुलाकात नंदलाल बोस से हुई। यहां नंदलाल बोस कलाभवन के प्राध्यापक के तौर पर काम कर रहे थे। पंडित नेहरू ने उन्हें संविधान को भारतीय चित्रों सजाने का उनसे आग्रह किया, जिन्हें नंदू बोस ने मान लिया।

संविधान को सजाने के लिए 21 हजार रूपये मेहनताना

221 पेज के इस दस्तावेज के हर पन्ने पर तो चित्र बनाना संभव नहीं था।लिहाजा, नंदलाल जी ने संविधान के हर भाग की शुरूआत में 8-13 इंच के चित्र बनाए। संविधान के कुल 22 भाग हैं। इस तरह उन्हें भारतीय संविधान की इस मूल प्रति को अपने 22 चित्रों से सजाने का मौका मिला। इन 22 चिज्ञों को बनाने में चार साल लग गए। इस काम के लिए उन्हें 21 हजार रूपये मेहनताना के तौर पर दिया गया। 

संविधान की सजावट में संस्कृति की छाप

भारत के संविधान को नंदलाल बोस के निर्देशन में शांतिनिकेतन के कलाकारों ने अपने अद्भुत चित्रों से सजाए हैं। इनमें मोहनजोदड़ो, वैदिक काल, रामायण, महाभारत, बुद्ध के उपदेश, महावीर के जीवन, मौर्य, गुप्त और मुगल काल, इसके अलावा गांधी, सुभाष, हिमालय से लेकर सागर आदि के चित्र सुंदर बन पड़े हैं। वास्तव में यह चित्र भारतीय इतिहास की विकास यात्रा हैं। इन चित्रों की की शुरुआत होती है भारत के राष्ट्रीय प्रतीक अशोक स्तंभ के शेर से। अगले भाग में भारत की प्रस्तावना लिखी है, जिसे सुनहरे बार्डर से घेरा गया है।

एक चित्रकार को 21 हजार, एक ने ठुकराया हर उपहार

एक तरफ नंनलाल बोस ने अपनी कलाकारी के लिए मात्र 21 हजार रूपये लिए तो वहीं दूसरी तरफ एक दूसरे कलाकार प्रेम बिहारी रायजादा ने मेहनताना ठुकरा दिया था। भारत के संविधान से जुड़ी एक और रोचक जानकारी यह है कि इसकी मूल प्रति टाइपिंग या प्रिंट में उपलब्ध नहीं है। संविधान की मूल प्रति हिंदी और अंग्रेजी में हाथ से लिखी गई है। इसे प्रेम बिहारी रायजादा ने लिखा है। रायजादा ने पेन होल्डर निब से संविधान के हर पन्ने को बहुत ही खूबसूरत इटैलिक अक्षर में लिखा है।सुलेखन यानी कैलिग्राफी प्रेम बिहारी का खानदानी शौक था।

संविधान के हर पृष्ठ पर लिखा अपना नाम

संविधान को बनाने में जहां 2 साल 11 महीने और 18 दिन लगे थे, वहीं इसे हाथों से लिखने में 6 महीने का समय लगा था। जब प्रेम बिहारी से सरकार ने इस काम को पूरा करने के लिए मेहनताना के बारे में पूछा, तो उनका जवाब बड़ा गंभीर था। उन्होंने कहा, मुझे एक भी पैसा नहीं चाहिए। ना ही कोई महंगा उपहार चाहिए। लेकिन उन्होंने संविधान के हर पृष्ठ पर अपना नाम और अंतिम पृष्ठ पर अपने दादाजी का नाम लिखने की शर्त रख दी, जिसे सरकार ने मान लिया।

कर्तव्य पथ पर आज रचेगा इतिहास, गणतंत्र दिवस पर पहली बार तीनों सेना की महिला टुकड़ी परेड में हो रही हैं शामिल

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देश भर में आज गणतंत्र दिवस का उत्साह है। देश की राजधानी दिल्ली के कर्त्तव्य पथ पर 75वें गणतंत्र दिवस समारोह की परेड में काफी कुछ नया देखने को मिलेगा। गणतंत्र दिवस परेड में पहली बार तीनों सेना- थल सेना, वायुसेना और जल सेना की महिला सैनिक शामिल होंगी। मेजर जनरल सुमित मेहता ने बताया कि इस बार तीनों सेना की महिला टुकड़ियां शामिल होंगी।

इस साल के गणतंत्र दिवस की थीम महिलाओं पर आधारित है जिसकी वजह से परेड में महिलाओं का अब तक का सबसे अच्छा प्रतिनिधित्व देखने को मिलेगा। इस साल पहली बार तीनों सेनाओं की एक महिला टुकड़ी भी मार्च करेगी। केंद्रीय सशस्त्र बलों की टुकड़ियों में भी महिला कर्मी शामिल होंगी। परेड में 48 महिला अग्निवीर भी हिस्सा ले रहीं है। गणतंत्र दिवस समारोह परेड कैप्टन शरण्या राव थल सेना की टुकड़ी का नेतृत्व करेंगी, जिसमें फ्रांस के राष्ट्रिय दिवस में पीएम मोदी के साथ अतिथि के तौर पर शामिल रहीं स्क्वॉड्रन लीडर सुमिता यादव भी हिस्सा ले रही हैं। गणतंत्र दिवस परेड में स्क्वाड्रन लीडर रश्मि ठाकुर भारतीय वायुसेना की मार्चिंग टुकड़ी का नेतृत्व करेंगी।

फ्रांस से एक मार्चिंग दस्ता और एक बैंड दल आया

परेड में भाग लेने के लिए फ्रांस से एक मार्चिंग दस्ता और एक बैंड दल भी भारत आया है।75वें गणतंत्र दिवस की परेड में फ्रांस की 95 सदस्यीय मार्चिंग टीम और 33 सदस्यीय बैंड दल भी शिरकत करेगा। इस फ्रांसीसी दल में छह भारतीय भी हिस्सा बनने वाले हैं। इनमें सीसीएच सुजन पाठक (हेड कॉर्पोरल), सीपीएल दीपक आर्य (कॉर्पोरल), सीपीएल परबीन टंडन (कॉर्पोरल), गुरवचन सिंह (फर्स्ट क्लास लीजियोनेयर), अनिकेत घर्तिमागर (फर्स्ट क्लास लीजियोनेयर) और विकास डीजेसेगर (फर्स्ट क्लास लीजियोनेयर) शामिल हैं। 

दरअसल, फ्रांस में विदेशी सेना की एक कोर होती है जिसका नाम 'फ्रेंच फॉरेन लीजन' है। 1831 में स्थापित की गई फ्रेंच फॉरेन लीजन को फ्रेंच सेना का एक अभिन्न अंग माना जाता है। फ्रांसीसी मार्चिंग दल के कमांडर कैप्टन नोएल लुइस ने कहा कि यह विशिष्ट सैन्य कोर विदेशियों के लिए फ्रांसीसी सेना में कुछ शर्तों के साथ सेवा करने का मौका देता है। वर्तमान में इसमें लगभग 9,500 अधिकारी और सेनापति हैं। इस कोर में दुनियाभर से लगभग 140 देशों के लोग हैं।

फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों मुख्य अतिथि

बता दें कि इस बार फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों गणतंत्र दिवस के दिन मुख्य अतिथि होंगे। यह छठी बार है, जब कोई फ्रांसीसी राष्ट्रपति गणतंत्र दिवस परेड में मुख्य अतिथि बने हैं। साथ ही दूसरी बार फ्रांसीसी दल गणतंत्र दिवस की परेड में हिस्सा ले रहा है। वहीं, इस बार 13,000 विशेष अतिथियों को बुलाया गया है।

मानसिक रूप से बीमार और विकलांग व्यक्तियों के लिए कानूनी सेवाएं” के संबंध में जागरूकता हेतु विधिक जागरूकता शिविर का किया गया आयोजन

किशनगंज : बिहार राज्य विधिक सेवा प्राधिकार, पटना के निर्देशानुसार जिला विधिक सेवा प्राधिकार, किशनगंज द्वारा रविवार को किशनगंज प्रखंड के बेलवा पंचायत भवन में नालसा की योजना, 2015 “मानसिक रूप से बीमार और मानसिक रूप से विकलांग व्यक्तियों के लिए कानूनी सेवाएं” के संबंध में जागरूकता हेतु विधिक जागरूकता शिविर का आयोजन किया गया|

     

इस जागरूकता शिविर में जिला विधिक सेवा प्राधिकार, किशनगंज द्वारा पैनल अधिवक्ता श्रीमती संगीता मानव एवं पारा विधिक स्वयं सेवक श्री मनोज कुमार की प्रतिनियुक्ति की गई थी| 

प्रतिनियुक्त पैनल अधिवक्ता ने बताया की नालसा की योजना, 2015 “मानसिक रूप से बीमार और मानसिक रूप से विकलांग व्यक्तियों के लिए कानूनी सेवाएं” का उद्देश्य यह सुनिश्चित करना है कि मानसिक रूप से अस्वस्थ अथवा मानसिक अशक्ता से ग्रस्त व्यक्ति कलंकित लोग नहीं है और उनके साथ ऐसा ही व्यवहार किया जाएगा जैसा किसी अन्य व्यक्ति से, जिसे उसके हक़ के सभी अधिकारों को प्रव्रत करने में सहायता मिलती है और जिसकी उन्हें विधि द्वारा आश्वासित किया गया है|

उपरोक्त जानकारी के साथ-साथ पैनल अधिवक्ता ने आगामी राष्ट्रीय लोक अदालत जो दिनांक - 09.03.2024 को व्यवहार न्यायालय परिसर, किशनगंज में आयोजित होने वाली के संबंध में ग्रामीणों को बतलाया साथ ही मुफ्त विधिक सेवा प्राप्त करने की विधि, न्याय बंधू एप्प, लोक शिकायत अधिकार अधिनियम 2015, मध्यस्थता से होने वाले लाभ, नशीली दवाओं के खतरे एवं इसके उन्मूलन के संबंध में कानूनी जागरूकता के साथ साथ कानूनी सहायता रक्षा परामर्श योजना के संबंध में भी लोगों को जानकारी दिया|

 इस जागरूकता शिविर को सफल बनाने में बेलवा पंचायत के लोगों की महत्वपूर्ण भूमिका रही|

किशनगंज से शबनम खान की रिपोर्ट

व्यवहार न्यायलय परिसर किशनगंज में आयोजित की वर्ष की अंतिम भव्य राष्ट्रीय लोक अदालत

किशनगंज: राष्ट्रीय विधिक सेवा प्राधिकार,नई दिल्ली एवं बिहार राज्य विधिक सेवा प्राधिकार,पटना के निर्देशानुसार जिला विधिक सेवा प्राधिकार,किशनगंज के तत्वावधान में व्यवहार न्यायालय, किशनगंज परिसर में शनिवार को राष्ट्रीय लोक अदालत का आयोजन किया गया । 

उक्त लोक अदालत में श्री मदन किशोर कौशिक जिला एवं सत्र न्यायाधीश ने पीठ के सदस्यों एवं अन्य पदाधिकारियों से अपील किया की पक्षकारों को ध्यान में रखते हुए मामलों का निपटारा उदारता पूर्वक एवं नियमानुसार करें तथा सचिव जिला विधिक सेवा प्राधिकार, किशनगंज ओम शंकर ने पक्षकारों से विशेष अनुरोध किया कि वे अपने-अपने वादों का निष्पादन शांति पूर्वक एवं कोरोना वायरस संक्रमण को देखते हुए सुरक्षात्मक रूप से करें | राष्ट्रीय लोक अदालत के पीठ के न्यायिक सदस्य (1) श्री कुमार गुंजन , अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश प्रथम,किशनगंज (2) श्री राघवेन्द्र नारायण सिंह, मुख्य न्यायिक दण्डाधिकारी,किशनगंज ;(3) श्री रोहित श्रीवास्तव, अपर मुख्य न्यायिक दण्डाधिकारी प्रथम ,किशनगंज (4) श्री अमृत कुमार सिंह , मुंसिफ प्रथम किशनगंज ;(5) श्री इंजमामुल हक़ न्यायिक दण्डाधिकारी प्रथम श्रेणी,किशनगंज (6) श्री रंधीर कुमार , न्यायिक दण्डाधिकारी प्रथम श्रेणी, किशनगंज सम्मिलित थे ।  

इन छ: पीठों में गैर न्यायिक सदस्य के रूप में जिला विधिक सेवा प्राधिकार किशनगंज के पैनल अधिवक्ता क्रमशः जय किशन प्रसाद , मधुकर प्रसाद गुप्ता, प्रदीप ठाकुर , महादेव प्रसाद दिनकर , प्रभात कुमार रॉय , एवं संगीता मानव की प्रतिनियुक्ति की गई थी । राष्ट्रीय लोक अदालत में व्यवहार न्यायालय के कुल 202 मामलें जिसमें दावा वाद के 09 मामलें, अपराधिक शमनीय 134 मामलें, विधुत विभाग के 58 मामलें एवं चेक बाउंस के 01 मामलें सम्मिलित हैं । 09 दावा वादों में कुल- 65,25,000 /- का समझौता हुआ । बैंक ऋण के कुल 541 मामले में समझौता राशी कुल रूपये 8,15,43,314/- का तथा 14 टेलीफोन बिल से संबंधित मामलों में कुल रूपये 70,729/- का समझौता हुआ। उक्त राष्ट्रीय लोक अदालत में काफी भीड़ देखी गई | जहाँ जिले के विभिन्न क्षेत्रो से आए पक्षकारों ने अपने-अपने वाद का निष्पादन करवाने में काफी सक्रिय भूमिका निभाई |

 पक्षकारों को किसी प्रकार की कठिनाई नहीं हो इसके लिए जगह-जगह सहायता केंद्र पर साथ ही प्रत्येक पीठ में एक –एक पारा विधिक स्वंय सेवकों की प्रतिनियुक्ति की गई थी | उक्त राष्ट्रीय लोक अदालत में जिला विधिक सेवा प्राधिकार, किशनगंज के कर्मी के साथ-साथ व्यवहार न्यायालय के कर्मचारीगण ने काफी सक्रीय भूमिका में दिखें |किशनगंज से शबनम खान की रिपोर्ट

सरकारी योजनाओं का लाभ जनता के लिए सुनिश्चित करने हेतु एक दिवसीय “विधिक सेवा कैम्प” का किया गया आयोजन

किशनगंज - बिहार राज्य विधिक सेवा प्राधिकार, पटना के निर्देश के अनुपालन में संविधान सप्ताह (दिनांक - 26.11.2023 से दिनांक – 02.12.2023 ) के अवसर पर नालसा (गरीबी उन्मूलन योजनाओं का प्रभावी कार्यान्वयन) योजना, 2015, नालसा (बच्चों और उनके संरक्षण के लिए बाल मैत्रीपूर्ण कानूनी सेवाएं) योजना, 2015 एवं ट्रांसजेंडर-व्यक्ति के एकीकरण और उनके पुनर्वास और न्याय तक पहुंच प्रदान करने के लिए बालसा योजना, 2023 ( सितारा, 2023) के विषय के साथ-साथ सरकारी लाभ यथा आयुष्मान कार्ड, आधार कार्ड, ट्रांसजेंडर हेतु पहचान पत्र एवं अन्य सरकारी योजनाओं का लाभ बड़े पैमाने पर जनता के लिए सुनिश्चित करने हेतु एक दिवसीय “विधिक सेवा कैम्प” का आयोजन दिनांक - 30.11.2023 गुरुवार को पूर्वाहन 11:00 बजे से जिला प्रशासन के सहयोग से जिला सभागार, समाहरणालय, किशनगंज में किया गया |

इस कैम्प में जिला अनु० जातिएवं अनु० जनजाति कल्याण विभाग , जिला सामाजिक सुरक्षा कोषांग, जिला बाल संरक्षण इकाई, स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों ने भाग लिया | कैम्प का मुख्य उद्देश्य आमलोगों को विभिन्न सरकारी योजनाओं का लाभ त्वरित सुनिश्चित किया जाना है जिसपर श्री ओम शंकर, सचिव, जिला विधिक सेवा प्राधिकार, किशनगंज ने सभी संबंधित पदाधिकारीगण के साथ चर्चा परिचर्चा किए| इस दौरान विभिन्न विभागों को बताया गया की वो विधि एवं संवैधानिक रूप से अपने दायित्वों का संचालन करें ताकि जिला की जनता को किसी प्रकार की विधिक कठिनाइयों का सामना न करना पड़े तथा अपने कर्तव्यों एवं दायित्वों को निर्वहन करें| विधिक सेवा कैम्प में श्री अनुज कुमार, अपर समाहर्ता एव श्री अभिनय भाष्कर, वरीय उपसमाहर्ता भी उपस्थित थे| 

जिला विधिक सेवा प्राधिकार, किशनगंज द्वारा प्रतिनियुक्त पैनल अधिवक्ता श्रीमती संगीता मानव एवं पारा विधिक सेवक सुश्री नमिता सिन्हा, सुश्री पूजा भारती एवं श्री मो गुलाम हुसैन के द्वारा विधिक सेवा कैम्प में आने वाले लोगों को नालसा की योजाना एवं मुफ्त विधिक सेवा के संबंध में जागरुक किया गया | प्रतिनियुक्त पारा विधिक स्वयं सेवकों द्वारा अनुसूचित जाति / जनजाति के एक बच्चा को चिन्हित किया गया जिनका किसी भी विद्यालय में प्रवेश नहीं था इस संबंध में पैनल अधिवक्ता द्वारा संबंधित विभाग से बात कर विद्यालय में दाखिला सुनिश्चित कराने हेतु अनुरोध किया गया|

किशनगंज से शबनम खान की रिपोर्ट

संविधान दिवस के अवसर पर मंडल कारा में सेमिनार का हुआ आयोजन, बंदियों को दी गई मौलिक अधिकारों की जानकारी

किशनगंज - बिहार राज्य विधिक सेवा प्राधिकार, पटना के निर्देश के आलोक में संविधान दिवस के अवसर पर मंडल कारा किशनगंज में मौलिक अधिकार, मूल कर्तव्य, शिक्षा का अधिकार एवं संविधान के बारे में जानकारी प्रदान करने हेतु सेमिनार का आयोजन किया गया। उक्त सेमिनार में जिला विधिक सेवा प्राधिकार, किशनगंज के सचिव श्री ओम शंकर, पैनल अधिवक्ता श्री मधुकर प्रसाद गुप्ता तथा पैनल अधिवक्ता श्रीमती मोनिका प्रसाद उपस्थित थेl 

सेमिनार का प्रारंभ संविधान की प्रस्तावना को पढ़कर हुईl सेमिनार में संविधान पर विस्तृत चर्चा परिचर्चा हुई साथ ही बंदियों को शिक्षा का महत्व समझाया गया तथा संविधान में नागरिकों को प्रदान किए गए मौलिक आधिकार एवं मूल कर्तव्य के बारे में बताया गयाl वहीं उक्त कार्यक्रम के समाप्ति के पश्चात सभी बंदियों को नशामुक्ति हेतु नशीली पदार्थों का सेवन न करने की शपथ दिलाई गईl

  

उपरोक्त कार्यक्रम के साथ साथ संविधान सप्ताह दिनांक 26.11.2023 से दिनांक 02.12.2023 के बिच किसी भी एक तिथि को नालसा (गरीबी उन्मूलन योजनाओं का प्रभावी कार्यान्वयन) योजना, 2015, नालसा (बच्चों और उनके संरक्षण के लिए बाल मैत्रीपूर्ण कानूनी सेवाएं) योजना, 2015 एवं ट्रांसजेंडर-व्यक्ति के एकीकरण और उनके पुनर्वास और न्याय तक पहुंच प्रदान करने के लिए बालसा योजना, 2023 (सितारा, 2023) के विषय के साथ-साथ सरकारी लाभ यथा आयुष्मान कार्ड, आधार कार्ड, ट्रांसजेंडर ( उभयलिंगी ) हेतु पहचान पत्र एवं आम नागरिकों के लिए अन्य सरकारी योजनाओं का लाभ बड़े पैमाने पर जनता के लिए सुनिश्चित करने हेतु एक दिवसीय विधिक सेवा कैंप का आयोजन करने का निर्देश बिहार राज्य विधिक सेवा प्राधिकार, पटना द्वारा प्राप्त है। 

जिसके उपलक्ष्य में जिला सभागार, समाहरणालय, किशनगंज में दिनांक 30.11.2023 को पूर्वाह्न 11 :00 बजे से विधिक सेवा कैंप का आयोजन जिला विधिक सेवा प्राधिकार, किशनगंज एवं जिला प्रशासन , किशनगंज के सहयोग से किया जाएगा जिसमें आम नागरिक भाग लेकर सरकार द्वारा प्रदान की जाने वाली विभिन्न योजनाओं का लाभ प्राप्त कर सकते हैं ।

किशनगंज से शबनम खान की रिपोर्ट

जिला विधिक सेवा प्राधिकार के सचिव की अध्यक्षता में निकाली गई जागरूकता रैली

किशनगंज - बिहार राज्य विधिक सेवा प्राधिकार,पटना के निर्देशानुसार जिला विधिक सेवा प्राधिकार के द्वारा दिनांक-09 नबम्बर 2023 को राष्ट्रीय विधिक सेवा दिवस के अवसर पर व्यवहार न्यायालय किशनगंज में श्री ओम शंकर सचिव जिला विधिक सेवा प्राधिकार,किशनगंज के अध्यक्षता में जागरूकता रैली निकाली गई|  

उक्त जागरूकता रैली में पैनल अधिवक्तागण,पारा विधिक स्वंय सेवकगण के अलावे जिला विधिक सेवा प्राधिकार,किशनगंज के कर्मीगण ने भाग लिया |

       

राष्ट्रिय विधिक सेवा दिवस के अवसर पर उक्त जागरूकता रैली के अतिरिक्त आंगनबाड़ी केंद्र, हसनपुर , किशनगंज में पैनल अधिवक्ता संगीता मानव एव पारा विधिक स्वंय सेवक इरशाद आलम; कमलपुरपुर पंचायत भवन, कोचाधामन में पैनल अधिवक्ता राज कुमार साह एव पारा विधिक स्वंय सेवक सुनील कुमार ठाकुर; लक्ष्मी चौक पौआखाली, ठाकुरगंज में पैनल अधिवक्ता सुखदेव प्रसाद सिंह एव पारा विधिक स्वंय सेवक दिलीप कुमार राम; मंडल कारा, किशनगंज में पैनल अधिवक्ता कुमार सुभम राज;  बस स्टैंड किशनगंज में पैनल अधिवक्ता महादेव प्रसाद दिनकर एव पारा विधिक स्वंय सेवक बिमल कुमार सिंह के द्वारा विधिक जागरूकता शिविर का आयोजन किया गया| 

साथ ही जिले के विभिन्न क्षेत्रो में डोर टू डोर विधिक जागरूकता अभियान चलाया गया जिसमें जिला विधिक सेवा प्राधिकार किशनगंज के विभिन्न पारा विधिक स्वंय सेवकों ने नालसा की विभिन्न योजनाओं, जिला विधिक सेवा प्राधिकार के कार्य , आगामी 09.12.2023 को आयोजित होने वाली राष्ट्रिय लोक अदालत , मध्यस्थता केंद्र आदि के बारे में लोगों को जागरुक किया गया|       

किशनगंज से शबनम खान की रिपोर्ट

दुर्गापूजा पंडालों में जिला विधिक सेवा प्राधिकार द्वारा लगाया गया है विधिक सेवा सहायता काउंटर, लोगों को दी जा रही सरकारी योजनाओं की जानकारी

किशनगंज : जिले के रुईधासा दुर्गापूजा पंडाल एवं मनोरंजन क्लब दुर्गापूजा पंडालों में जिला विधिक सेवा प्राधिकार, किशनगंज द्वारा विधिक सेवा सहायता काउंटर लगाया गया है जो सप्तमी पूजा से ही कार्यशील है| 

विधिक सेवा काउंटर में प्रतिनियुक्त पारा विधिक स्वयं सेवकों के माध्यम से आमजनों में विधिक सेवा के जागरूकता हेतु नालसा की योजनाओं, बिहार पीड़ित प्रतिकर योजना, मुफ्त विधिक सेवा के पात्र व्यक्तियों एवं विधिक सेवा प्राप्त करने की विधि के साथ साथ दिनांक - 09.12.2023 को व्यवहार न्यायालय परिसर, किशनगंज में आयोजित होने वाले राष्ट्रीय लोक अदालत के प्रचार प्रसार हेतु पम्पलेट वितरित किए जा रहे हैं| 

काउंटर से विभिन्न लोगों को विधिक जानकारी प्रदान की जा रही है |      

किशनगंज से शबनम खान की रिपोर्ट

“नालसा (तस्करी और वाणिज्यिक यौन शोसन पीड़ितों के लिए विधिक सेवाएँ) योजना, 2015” पर जागरूकता हेतु विधिक जागरूकता शिविर का आयोजन


किशनगंज: बिहार राज्य विधिक सेवा प्राधिकार, पटना के निर्देशानुसार शनिवार को दिघलबैंक प्रखंड के पंचायत भवन धनतोला में “नालसा (तस्करी और वाणिज्यिक यौन शोसन पीड़ितों के लिए विधिक सेवाएँ) योजना, 2015” पर जागरूकता हेतु विधिक जागरूकता शिविर का आयोजन विधिक सेवा प्राधिकार, किशनगंज द्वारा किया गया |

इस जागरूकता शिविर में संबंधित योजना पर विधिक जागरूकता हेतु जिला विधिक सेवा प्राधिकार, किशनगंज के पैनल श्री हरदेव मंडल एवं पारा विधिक स्वयं सेवक श्री नवीन कुमार सिंह की प्रतिनियुक्ति की गई थी | प्रतिनियुक्त पैनल अधिवक्ता ने पंचायत भवन धनतोला में उपस्थित ग्रामीणों को नालसा की उक्त योजना के बारे में बताते हुए जानकारी दिया की तस्करी और यौन शोषण के पीड़ितों को बचाव के समय तथा उसके बाद केस की सुनवाई में उक्त योजना के तहत मुफ्त कानूनी सहायता जिला विधिक सेवा प्राधिकार द्वारा उपलब्ध कराया जाता है साथ ही धारा 357 A Cr.PC के तहत पीड़ितों को मुआवजा दिलवाने हेतु भी मदद की जाती है |

इसके अलावे पैनल अधिवक्ता ने मेडीएशन और उसके लाभ के बारे में भी जानकारी दीए तथा अंत में विधिक जागरूकता शिविर में ग्रामीणों को दिनांक - 09.12.2023 को व्यवहार न्यायालय परिसर, किशनगंज में आयोजित होने वाली राष्ट्रीय लोक अदालत के बारे में जानकारी देते हुए इससे होने वाले फायदे के बारे में बताया एवं लोक अदालत में अपने मामलों को निष्पादन करने हेतु प्रेरित किया | ग्रामीणों के बीच नलसा की उपरोक्त योजना एवं राष्ट्रीय लोक अदालत के प्रचार प्रसार हेतु पर्चे बांटे गए |

किशनगंज से शबनम खान की रिपोर्ट

अंतरराष्ट्रीय बालिका दिवस के अवसर पर व्हेन चिल्ड्रेन हैव चिल्ड्रेन का हुआ लोकार्पण, बाल विवाह मुक्त भारत का खाका पेश करती है यह पुस्तक

 किशनगंज : अंतरराष्ट्रीय बालिका दिवस के अवसर पर पूरे देश में चल रहे 'बाल विवाह मुक्त भारत' अभियान के दौरान गैर सरकारी संगठन जन निर्माण केंद्र ने राज्य के किशनगंज जिले में भुवन ऋभु की किताब 'व्हेन चिल्ड्रेन हैव चिल्ड्रेन : टिपिंग प्वाइंट टू एंड चाइल्ड मैरेज' का लोकार्पण किया।

प्रख्यात बाल अधिकार कार्यकर्ता और महिलाओं एवं बच्चों की सुरक्षा की लड़ाई लड़ने वाले सुप्रीम कोर्ट के प्रखर अधिवक्ता भुवन ऋभु महिलाओं एवं बच्चों के लिए काम करने वाले कैलाश सत्यर्थी चिल्ड्रेन्स फाउंडेशन के सलाहकार भी हैं। बाल विवाह से सबसे ज्यादा प्रभावित 300 से ज्यादा जिलों में नागरिक समाज और महिलाओं की अगुआई में चल रहे बाल विवाह मुक्त भारत अभियान के लक्ष्यों को हासिल करने के लिए बेहद अहम दस्तावेज के रूप में यह किताब एक समग्र वैचारिक आधार, रूपरेखा और कार्ययोजना पेश करती है। इस अभियान का लक्ष्य 2030 तक बाल विवाह का पूरी तरह खात्मा और इस तरह हर साल 15 लाख बच्चियों को बाल विवाह से बचाना है। अभियान खास तौर से देश में बच्चों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए मौजूदा सरकारी नीतियों और कानूनों के क्रियान्वयन पर केंद्रित हैं। 

इस किताब का लोकार्पण बाल विवाह पीड़ित/कार्यक्रम के मुख्य अतिथि ने किया। इस मौके पर उप विकास आयुक्त सह प्रभार जिलाधिकारी ,किशनगंज के अतिरिक्त सहायक निदेशक बाल संरक्षण इकाई एवं सहायक निदेशक सामाजिक सुरक्षा कोषांक भी मौजूद थे। 

कार्यक्रम के मुख्य अतिथि डी डी सी ने कहा बाल विवाह की चुनौती का सामना करने के रास्ते में उल्लेखनीय प्रगति हुई है लेकिन बहुत कुछ बाकी है क्योंकि देश अभी उस टिपिंग प्वाइंट यानी उस बिंदु पर नहीं पहुंच पाया है जहां छोटे बदलावों और घटनाओं की श्रृंखला इतनी बड़ी हो जाती है जो एक बड़ा और आमूल परिवर्तन कर सकें। भारत में बाल विवाह की मौजूदा दर 23.3 प्रतिशत है और यूनीसेफ का अनुमान है कि अगर पिछले दस साल से हुई प्रगति जारी रही तो 2050 तक जाकर भारत में बाल विवाह की दर घट कर छह प्रतिशत पर आ पाएगी। यह एक परेशान करने वाला आंकड़ा है और इसका मतलब है कि 2023 से लेकर 2050 के बीच सात पीढ़ियों तक बाल विवाह का दंश बच्चों से उनका बचपन छीनता रहेगा। 

'व्हेन चिल्ड्रेन हैव चिल्ड्रेन' सुझाती है कि 2030 तक राष्ट्रीय बाल विवाह दर को 5.5 प्रतिशत तक लाना संभव है- ये संख्या वो देहरी है जहां से बाल विवाह का चलन अपने आप घटने लगेगा और लक्षित हस्तक्षेपों पर निर्भरता भी कम होने लगेगी।

भुवन ऋभु अपनी किताब में लिखते हैं, “जरूरत है बस समस्या की गंभीरता को समझते हुए दृढ़ संकल्प के साथ यह कहने की कि, ‘अब और नहीं’। पैदा होते ही मां को खो देने, बेचे जाने, बलात्कार का शिकार होने का मतलब एक बच्चे का बार-बार मरना है।” 

इस अवसर पर गैर सरकारी संगठन जन निर्माण केंद्र के संध्या कुमारी बाल विवाह के खिलाफ लड़ाई में 'व्हेन चिल्ड्रेन हैव चिल्ड्रेन' को एक सामयिक और अहम हस्तक्षेप बताते हुए कहा, “नागरिक समाज और सरकार, दोनों ही बाल विवाह मुक्त भारत के लक्ष्य को हासिल करने के लिए पूरे समर्पण से काम कर रहे हैं। लेकिन हमारे तमाम प्रयासों के बावजूद अब भी बड़ी तादाद में इस तरह की घटनाएं हो रही हैं और इस अपराध से मुकाबले के लिए जब तक हमारे पास एक समन्वित योजना नहीं होगी, तब तक बाल विवाह के खिलाफ टिपिंग प्वाइंट के बिंदु तक पहुंचना एक मुश्किल काम होगा। यह किताब 2030 तक भारत को बाल विवाह मुक्त बनाने का एक रणनीतिक खाका पेश करती है। यह किताब हमें प्रेरित करने के साथ उम्मीद बंधाती है कि बाल विवाह मुक्त भारत बनाने का हमारा लक्ष्य सिर्फ सपना ही नहीं रहेगा, यह साकार होकर रहेगा।”   

    

किताब इस लक्ष्य को हासिल करने के लिए एक योजना की रूपरेखा भी पेश करती है। यह 'पिकेट' रणनीति के माध्यम से सरकार, समुदायों, गैर सरकारी संगठनों और बाल विवाह के लिहाज से संवेदनशील बच्चियों से नीतियों, निवेश, संम्मिलन, ज्ञान-निर्माण और एक पारिस्थितिकी जहां बाल विवाह फल-फूल नहीं पाए और बाल विवाह से लड़ाई के लिए निरोधक और निगरानी तकनीकों की मांग पर एक साथ काम करने का आह्वान करती है। 

गैर सरकारी संगठन कैलाश सत्यर्थी चिल्ड्रेन्स फाउंडेशन देश के कोने-कोने के 288 जिलों में कार्यरत 160 संगठनों के साथ मिल कर स्थानीय और जमीनी स्तर पर बाल विवाह के खात्मे के लिए काम कर रहा है। ये सभी संगठन 16 अक्तूबर 2023 बाल विवाह मुक्त भारत दिवस की तैयारियों में जुटे हैं। इस दिन देश के हजारों गांवों में बाल विवाह के खिलाफ जागरूकता कार्यक्रमों, नुक्कड़ नाटकों, बाल विवाह के खिलाफ प्रतिज्ञाओं, कार्यशालाओं, मशाल जुलूस और तमाम अन्य गतिविधियों के माध्यम से संदेश दिया जाएगा कि बाल विवाह हर हाल में खत्म होना चाहिए। । 

16 अक्तूबर 2023 बाल विवाह मुक्त भारत अभियान की पहली वर्षगांठ है और तब से लेकर अब तक सामुदायिक सदस्यों, गैर सरकारी संगठनों और सरकारी एजेंसियों के प्रयासों से हजारों बाल विवाह रोके गए हैं और लाखों लोगों ने अपने समुदायों में बाल विवाह नहीं देने की शपथ ली है। साथ ही अंतरराष्ट्रीय बालिका दिवस के अवसर पर बाल विकास परियोजना पदाधिकारी से समन्वय स्थापित कर जिला समाहरणालय से डेमार्केट होते हुए बालिका उच्च विद्यालय तक साईकिल रैली में संस्थागत सहयोग किया गया। इसके उपरांत 08 विशेष जागरूकता के कार्यक्रम किए गए। जिसमे 05 भिन्न भिन्न उच्च विद्यालय के बालिकाओं के साथ, साथ ही सहायक निदेशक जिला बाल संरक्षण इकाई के अध्यक्षता में प्रेस वालों के साथ परिचर्चा की गई।  

उक्त कार्यक्रम में संस्था के जिला परियोजना समन्वयक मुजाहिद आलम, विधिक सलाहकार पंकज कुमार झा, संस्था के सभी सामुदायिक सामाजिक कार्यकर्ता भी उपस्थित थे।          

किशनगंज से शबनम खान की रिपोर्ट