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जम्मू-कश्मीर के पुलवामा में सुरक्षाबलों और आतंकियों के बीच रविवार शाम से एनकाउंटर जारी


जम्मू-कश्मीर के पुलवामा में सुरक्षाबलों और आतंकियों के बीच रविवार शाम से एनकाउंटर जारी है। बताया जा रहा है कि यहां के लैरो-परिगाम इलाके में 2-3 आतंकी एक मकान से छिपे हुए हैं और यहां से सुरक्षाबलों पर गोलीबारी कर रहे हैं। 

पुलिस को शाम साढ़े सात बजे सूचना मिली कि पुलवामा के परिगाम गांव में कुछ आतंकियों को देखा गया। पुलिस ने सेना और CRPF के जवानों के साथ उन्हें पकड़ने के लिए इलाके की घेराबंदी कर दी। अचानक आतंकियों ने गोलीबारी शुरू कर दी इसके बाद से एनकाउंटर जारी है।

दिल्ली:पीएम मोदी ने सोशल मीडिया में बदली अपनी प्रोफाइल पिक तिरंगे की लगाई तस्वीर लोगो से भी की ऐसा करने की अपील

दिल्ली:- प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने लोगों से 'हर घर तिरंगा' अभियान (Har Ghar Tiranga campaign) के तहत अपने सोशल मीडिया अकाउंट की डिस्प्ले पिक्चर (DP) में तिरंगे की तस्वीर लगाने का आग्रह किया।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने सोशल मीडिया अकाउंट्स की प्रोफाइल पिक्चर बदल कर राष्ट्र ध्वज 'तिरंगे' की तस्वीर लगा दी है। उन्होंने देश के लोगों से भी तिरंगा महोत्सव मनाने के लिए एक आंदोलन के रूप में ऐसा ही करने की अपील की है।  

पीएम मोदी ने रविवार को हर घर तिरंगा अभियान का हिस्सा बनने की अपील की। उन्होंने कहा कि आइए हम अपने सोशल मीडिया अकाउंट की प्रोफाइल बदलें और इस अनूठे प्रयास को समर्थन दें। जो हमारे प्यारे देश और हमारे बीच के बंधन को गहरा करेगा।

गृहमंत्री ने दिखाई हरी झंडी

इसके अलावा, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने अहमदाबाद में 'हर घर तिरंगा' अभियान को हरी झंडी दिखाई। उन्होंने कहा कि आजादी का अमृत महोत्सव के दौरान पीएम मोदी ने पूरे देश में देशभक्ति की भावना पैदा करने की कोशिश की। 

15 अगस्त 2023 को 'आजादी का अमृत महोत्सव' का समापन होगा। शाह ने कहा कि आजादी के 75 साल से लेकर 100 साल तक हम भारत को हर क्षेत्र में महान बनाने के लिए जिएंगे।

क्या है हर घर तिरंगा

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पिछले साल भारत की आजादी के 75 साल पूरे होने का जश्न मनाते हुए 'आजादी का अमृत महोत्सव' के अवसर पर 22 जुलाई को 'हर घर तिरंगा' अभियान शुरू किया था।

वहीं, पीएम ने लोगों से इस साल 13 से 15 अगस्त तक 'हर घर तिरंगा' आंदोलन में हिस्सा लेने का आग्रह किया। साथ ही कहा कि भारतीय ध्वज स्वतंत्रता और राष्ट्रीय एकता की भावना का प्रतीक है। उन्होंने भारतीयों से 'हर घर तिरंगा' वेबसाइट https://harghartiranga.com पर अपनी तस्वीरें अपलोड करने का भी आग्रह किया।

'हर घर तिरंगा' बाइक रैली निकाली

इससे पहले शुक्रवार को उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने दिल्ली के प्रगति मैदान से 'हर घर तिरंगा' बाइक रैली को हरी झंडी दिखाकर रवाना किया था। इस दौरान केंद्रीय मंत्री जी किशन रेड्डी, अनुराग ठाकुर और शोभा करंदलाजे भी मौजूद रहे।

15 तक मनेगा हर घर तिरंगा

बता दें, आजादी का अमृत महोत्सव के तत्वावधान में 13 से 15 अगस्त तक पूरे देश में 'हर घर तिरंगा' मनाया जाएगा। इसमें लोगों को अपने-अपने घरों पर झंडे फहराने के लिए प्रोत्साहित किया जाएगा। इस अभियान की व्यापक पहुंच सुनिश्चित करने और बड़ी संख्या में लोगों की भागीदारी सुनिश्चित करने के लिए आज से सांसदों और मंत्रियों के साथ एक 'तिरंगा' बाइक रैली आयोजित की जा रही है। यह बाइक रैली इंडिया गेट सर्किल पर पहुंचेगी। इसके बाद रैली इंडिया गेट परिसर से होते हुए मेजर ध्यानचंद स्टेडियम में समाप्त होगी।

दिल्ली:स्वतंत्रता दिवस समारोह के मद्देनजर दिल्ली के अस्पतालों में अलर्ट, बेड किए गए आरक्षित

नई दिल्ली:- देश की राजधानी स्वतंत्रता दिवस की तैयारी अंतिम चरण में है।स्वतंत्रता दिवस समारोह के मद्देनजर एम्स, सफदरजंग, आरएमएल और लोकनायक जैसे बड़े अस्पतालों में रेड अलर्ट है। इसके मद्देनजर अस्पतालों में आपदा वार्ड तैयार रखा गया है।

साथ ही इमरजेंसी में अतिरिक्त डाक्टर, नर्सिंग कर्मचारी और पैरामेडिकल कर्मचारी तैनात किए गए हैं और चिकित्सा सेवाओं को दुरुस्त रखा गया है। ताकि जरूरत पड़ने पर लोगों को जल्द चिकित्सा सुविधाएं उपलब्ध कराई जा सके।

इमरजेंसी में लगाई गई डॉक्टरों की ड्यूटी

लोकनायक अस्पताल लाल किला के सबसे नजदीक है। इसलिए इस अस्पताल की इमरजेंसी के आपदा वार्ड में 50 बेड तैयार रखे गए हैं। इस वार्ड में दवाओं और कंज्यूमेबल के पर्याप्त इंतजाम किए गए हैं। अस्पताल के निदेशक डॉ. सुरेश कुमार ने बताया कि 15 अगस्त के दिन इमरजेंसी में 50 डॉक्टर, नर्सिंग व पैरामेडिकल कर्मचारियों की टीम लगाई गई है।

अस्पताल के ब्लड बैंक में 200 यूनिट ब्लड तैयार रखा गया है। इसके अलावा एंबुलेंस भी तैयार रखी गई है। तैयारियों के मद्देनजर माक ड्रिल भी किया गया है और सभी तैयारियां पूरी हैं।

इसके अलावा एम्स के ट्रामा सेंटर, सफदरजंग अस्पताल की इमरजेंसी और आरएमएल अस्पताल की इमरजेंसी के आपदा वार्ड की साफ सफाई करा दी गई है और बेड आरक्षित रखे गए हैं। बताया जा रहा है कि एम्स के वीवीआइपी वार्ड और आरएमएल के नर्सिंग वार्ड में भी कमरे खाली रखे गए हैं।

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के आह्वान "हर घर तिरंगा अभियान" के तहत इस बार देशभक्ति का बाजार तकरीबन 600 करोड़ रुपये होने का अनुमान


नई दिल्ली:- प्रधानमंत्री के हर घर तिरंगा अभियान को देशभर में बेहद उत्साहपूर्वक मनाने के लिए कंफेडरशन ऑफ ऑल इंडिया ट्रेडर्स (कैट) व्यापक रूप से प्रयास कर रहा है।प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने ''हर घर तिरंगा अभियान'' (Har Ghar Tiranga Campaign) के तहत हर घर, कार्यालय और कारोबारी प्रतिष्ठान में तिरंगा झंडा फहराने का आह्वान किया है। यह आह्वान उन्होंने पिछले साल भी किया था। उनके इस आह्वान से पिछले वर्ष से ''देशभक्ति'' के बाजार को जबरदस्त उछाल मिला है।

यह दो वर्ष पहले के मुकाबले दो से तीन गुना अधिक है। तब देशभर में कुछ करोड़ ही झंडे की बिक्री होती थी। वहीं इस बार 35 करोड़ से अधिक झंडे की बिक्री का अनुमान है। इसी तरह देशभक्ति को प्रदर्शित करने वाले बैंड, बैज, चूड़ी, टीशर्ट समेत अन्य उत्पादों की भी बिक्री खूब हो रही है। अच्छी बात है कि उत्पादों पर महंगाई का कोई असर नहीं है। यह पूर्व की भांति ही है।

कारोबारी संगठन कंफेडरेशन ऑफ ऑल इंडिया ट्रेडर्स ( कैट) के अनुसार इस बार देशभक्ति का बाजार तकरीबन 600 करोड़ रुपये का होगा। पिछले वर्ष यह बिक्री तकरीबन 500 करोड़ रुपये की रही थी। वहीं, वर्ष 2022 से पहले स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर तिरंगे की वार्षिक बिक्री लगभग 150-200 करोड़ रुपये तक सीमित थी।

खादी ग्रामोद्योग ने पिछले वर्ष बेचे थे पांच करोड़ से अधिक के झंडे

खादी ग्रामोद्योग ने भी बढ़ती मांग को देखते हुए इस बार तिरंगे की बिक्री का लक्ष्य दोगुना कर लिया है। पिछले वर्ष खादी द्वारा पांच करोड़ रुपये से अधिक के खादी के झंडे बेचे गए थे। जबकि, इस वर्ष पांच अगस्त तक 6.25 करोड़ कीमत की झंडे की बिक्री हो चुकी है, जबकि लक्ष्य 10.20 करोड़ रुपये का तय किया गया

इतना ही नहीं, ''हर घर तिरंगा'' अभियान से देश भर में 10 लाख से अधिक लोगों के लिए रोजगार का सृजन हुआ है। दिल्ली के झंडा बिक्री के प्रमुख बाजार सदर में भी इस बार बिक्री का अनुमान दोगुना है।

झंडा विक्रेता सौरभ गुप्ता के अनुसार, पिछले वर्ष पीएम के आह्वान के बाद पहली बार झंडे की इतनी मांग थी कि ये बाजार से नदारद ही हो गए थे, इस बार वैसी स्थिति नहीं है, क्योंकि महीनों पहले से तैयारी शुरू हो गई थी। उसके अनुसार बिक्री भी हो रही है।

स्वतंत्रता दिवस पर राष्ट्रीय राजधानी में तकरीबन पांच से छह करोड़ रुपये की झंडा बिक्री का अनुमान है। झंडे की बिक्री यहीं हाल डंडे का भी है, अचानक मांग बढ़ने से इसके दाम भी बढ़ गए थे। सदर बाजार, मुख्य मार्ग पर डंडा विक्रेता विनोद गुप्ता ने बताया कि तीन फीट का डंडा 440 रुपये में मिल जा रहा है, जो पिछले वर्ष 600 से 700 रुपये प्रति सैकड़ा तक बिका था।

एनएमसी का आदेश डॉक्टर अगर नहीं लिखेंगे जेनेरिक दवाइयां तो होगी कार्रवाई ऐसा ना करने पर लाइसेंस होगा सस्पेंड

 दिल्ली :- राष्ट्रीय चिकित्सा आयोग ने देश के डॉक्टर्स के लिए नए नियम जारी किए हैं। नए नियमों के मुताबिक अब देश के सभी डॉक्टर्स के लिए जेनेरिक दवाइयां प्रेस्क्रिप्शन में लिखना अनिवार्य होगा।

अगर कोई भी डॉक्टर ऐसा नहीं करता है तो उसके प्रैक्टिस लाइसेंस को भी अस्थायी तौर पर सस्पेंड कर दिया जा सकता है। लाइसेंस सस्पेंड करने के अलावा कई अन्य दंड का भी प्रावधान किया गया है।

नेशनल मेडिकल कमीशन के नए नियमों के अनुसार अब सभी डॉक्टर्स को जेनेरिक दवाएं लिखनी होगी। अगर कोई डॉक्टर ऐसा नहीं करता है तो उसे दंडित भी किया जा सकेगा।

एनएमसी ने डॉक्टर्स से यह भी कहा है कि वह ब्रॉडेड जेनेरिक दवाओं को लिखने से भी बचे। 2 अगस्त को एनएमसी ने नियमों का नोटिफिकेशन जारी करते हुए कहा कि भारत में जेनेरिक दवाएं ब्रॉडेड दवाओं की तुलना में 30 से 80 प्रतिशत तक सस्ती है। 

भारत में दवाइयों पर आम आदमी के जेब पर बड़ा भार पड़ता है। ऐसे में जेनेरिक दवाएं प्रेस्क्राइब करने पर हेल्थ पर होने वाले खर्च में कमी आएगी। दरअसल, जेनेरिक और ब्रॉंडेड दवाओं की गुणवत्ता और असर में कोई अंतर नहीं होती। लेकिन तमाम बड़ी कंपनियां ऊंची कीमत वाली दवाइयों को प्रेस्क्राइब करने के लिए काफी ऑफर चलाती रहती हैं।

आदेश का उल्लंघन करने पर दंड का प्रावधान

एनएमसी नियमों के अनुसार, डॉक्टर्स को जेनेरिक दवाएं ही लिखनी होगी। बार-बार आदेश का उल्लंघन करने पर डॉक्टर का प्रैक्टिस करने का लाइसेंस एक विशेष अवधि के लिए सस्पेंड कर दिया जाएगा। साथ ही डॉक्टर्स को यह भी निर्देश दिया गया है कि वह अगर किसी मरीज का पर्ची बना रहा यानी की प्रेस्क्रिप्शन लिख रहा है तो वह उसे स्पष्ट भाषा में लिखे जो किसी से भी पढ़ा जा सके। 

नेशनल मेडिकल कमीशन ने आदेश दिया है कि दवाइयों के नाम अंग्रेजी के कैपिटल लेटर्स में लिखा जाना चाहिए। अगर हैंडराइटिंग सही नहीं है तो पर्ची को टाइप कराकर मरीज को प्रेस्क्रिप्शन दिया जाए। एनएमसी ने एक टेम्पलेट भी जारी किया है। इस टेम्पलेट का उपयोग नुस्खा लिखने के लिए इस्तेमाल किया जा सकेगा।

नेशनल मेडिकल कमीशन यानी राष्ट्रीय चिकित्सा आयोग ने आदेश में कहा कि अस्पतालों और डॉक्टर्स को मरीजों को जन औषधि केंद्रों और अन्य जेनेरिक फार्मेसी दुकानों से दवाएं खरीदने के लिए प्रोत्साहित करना चाहिए।

मेडिकल छात्रों और जनता को उनके ब्रांडेड समकक्षों के साथ जेनेरिक दवा की समानता के बारे में शिक्षित करना चाहिए। जेनेरिक दवाओं के प्रचार को बढ़ावा देनी चाहिए।

अगर आप मोमोज खाने के शौकीन है तो सावधान हो जाइए क्योंकि जिंदगी के लिए धीमा जहर है मोमोज,डॉक्टर ने बताईं 5 हैरान कर देने वाली बात


दिल्ली:- मोमोज वैसे तो चाइनीज शब्द है लेकिन ये तिब्बत से आया है।भले ही है ये तिब्बत या नेपाल का डिश है पर आजकल ये भारत में काफी पसंद की जाती है ,यह बच्चों से लेकर बड़ों तक का फेवरेट बन गया है. फास्टफूड में ज्यादातर चीजें मैदे से ही बनी होती हैं, जो सेहत को सीधे तौर पर क्षति पहुंचाती हैं।

वैसे तो सभी फास्ट फूड लोगों के पसंदीदा हैं, लेकिन मोमोज सबसे ऊपर है. दरअसल, आजकल हर गली-मोहल्लों और बाजार में आपको सिल्वर के स्ट्रीमर गैस पर चढ़े दिख जाएंगे. इसके इर्द-गिर्द युवा और किशोरों की भारी भरकम भीड़ भी होगी. इसमें से ज्यादातर लोग इसके नुकसान को जानते भी होंगे, लेकिन इसके बाद भी लापरवाह बने हैं।

रांची रिम्स के न्यूरो एवं स्पाइन सर्जन डॉ. विकास कुमार ने ट्विटर पर शेयर की एक पोस्ट के मुताबिक, मोमोज आपकी जिंदगी को बर्बाद करने के लिए काफी हैं. ये इंसान को अंदर से खोखला बनाने का काम करते हैं. आइए जानते हैं डॉक्टर की बताईं 5 बड़ी बातें.

कैसे नुकसानदायक है आपका फेवरेट मोमोज?

आंतों के लिए घातक : ज्यादातर किशोर, युवा और महिलाएं शाम होते ही मोमोज का स्वाद लेने दुकानों तक पहुंच जाती हैं. लेकिन ऐसा करना गलत है, क्योंकि मैदे से बने मोमोज आपकी सेहत को नुकसान पहुंचा सकते हैं. बता दें कि, जिस मैदे से मोमोज बनाए जाते हैं, वह गेहूं का ही एक उत्पाद होता है. लेकिन इसमें से प्रोटीन और फाइबर को निकाल लिया है और बाद में सिर्फ मृत starch ही बचता है।

यह प्रोटीन रहित मैदा शरीर में जाकर हड्डियों को सोख लेता है. मैदा कई बार ठीक से डाइजेस्ट ना होने पर आंतों में चिपक सकता है और आंतों को ब्लॉक कर सकता है।

किडनी को नुकसान : मोमोज का कई तरह की बीमारियों को दावत देने के लिए काफी है. इनके सेवन से इंसान कई ऐसी बीमारियों के शिकंजे में फंस सकता है, जिनसे निकल पाना बहुत मुश्किल होता है. दरअसल, जिस मैदे से मोमोज बनाए जाते हैं उस मैदा को केमिकल से चमकाया जाता है।

इस केमिलकल को बेंजोयल पराक्साइड कहा जाता है. यह रासायनिक बिलीचर वही होता है, जिससे चेहरे की सफाई की जाती है. ऐसे में यह बिलीच हमारी बॉडी में जाकर किडनी और पेनक्रियाज को को नुकसान पहुंचाती है. इसके अलावा यह मैदा डायबिटीज के खतरे को भी बढ़ावा देता है.

ब्लीडिंग का खतरा: प्रोटीन रहित मैदे से बने मोमोज के साथ लाल मिर्च की चटनी को भी सर्व किया जाता है. दरअसल, ये चटनी सेहत के लिए नुकसानदायक साबित हो सकती है. बता दें कि, इस तरह की उत्तेजक चटनी को खाने से आप पाइल्स और गैस्ट्राइटिस जैसी परेशानियों को मोल ले सकते हैं. इसके अलावा यह चटनी पेट और आंतों में ब्लीडिंग होने के खतरे को भी बढ़ाती है. ऐसे में जरूरी है कि मैदे से बनी चीजों को खाने से परहेज करें.

वजन का बढ़ना :

मैदे से बने मोमोज स्वाद में जितने टेस्टी होते हैं, उतने ही नुकसानदायक भी होते हैं. इनका अधिक सेवन करने से आप कई बीमारियों की चपेट में आ सकते हैं. बता दें कि, कुछ मोमोज बेचने वाले लोग टेस्ट को बढ़ाने के लिए केमिकल का भी इस्तेमाल करते हैं. इस केमिकल को मोनोसोडियम ग्लूटामैट कहते हैं।

ये रासायनिक केमिकल मोमोज का स्वाद बढ़ाने और सुगंधित बनाने का काम करता है. ऐसे केमिकलयुक्त मैदे को खाने से मोटापा बढ़ना, ब्रेन और नरवर की समस्या, चेस्ट पेन हार्ट रेट और बीपी बढ़ने जैसी कई परेशानियां हो सकती हैं.

इंफेक्शन का खतरा :

आपकी जीभ का स्वाद आपके स्वास्थ्य पर गलत असर डाल सकता है. दरअसल, मोमोज इंफेक्शन और बच्चों में नया खून बनने की प्रक्रिया को धीमा बनाने का काम कर सकता है. इसके अलावा कुछ जगह नॉन-वेज मोमोज भी बनाए जाते हैं. इन मोमोज में अधिकतर डेड एनिमल्स के मीट को मिलाया जाता है या फिर अधिक समय तक रखा रहने से यह नुकसानदायक हो जाता है. इस स्थित में आपको इंफेक्शन होने का खतरा बढ़ सकता है।

सावधान : गुरुग्राम में 12 कॉलोनियों पर लटकी सीलिंग की तलवार, 700 से अधिक मकानों को नोटिस

गुरुग्राम : गुरुग्राम की 12 कॉलोनियों में 700 से अधिक मकानों पर सीलिंग की तलवार लटक गई है। जिला नगर योजनाकार प्रवर्तन विभाग ने इन मकानों पर कार्रवाई की तैयारी तेज कर दी है। विभाग की ओर से कराए गए सर्वे में 750 मकानों में व्यावसायिक गतिविधियां चलती पाई गईं।

इन सभी मकान मालिकों को नोटिस भी दिए गए थे, लेकिन मकानों से व्यावसायिक गतिविधियां बंद नहीं की गईं।

दो दिनों तक डीटीपी के सीलिंग अभियान के बाद कुछ मकान खाली हो गए। अब 700 से अधिक मकानों को सील करने की योजना तैयार की गई है। डीटीपी प्रवर्तन के अनुसार शिकायत मिलने पर तीन टीमें बनाकर बिल्डर कॉलोनियों में आवासीय मकानों का सर्वे कराया गया।

राजेश कौशिक, डीटीपी प्लानिंग गुरुग्राम ने कहा, ''बिल्डर कॉलोनियों के आवासीय मकानों को सीलिंग के बाद कब्जा प्रमाण पत्र रद्द होगा। 18 मकानों को नोटिस जारी कर दिया है। मकान का कब्जा प्रमाणपत्र रद्द होने के बाद अवैध माना जाएगा।''

साईं कुंज कॉलोनी में विकास कार्य शुरू

वहीं, आरडब्ल्यूए के प्रयास से गुरुग्राम नगर निगम के द्वारा साईं कुंज कॉलोनी में विकास कार्य शुरू हो गए हैं। निगम ने पहले पानी, फिर सीवर लाइन बिछाई और आरएमसी रोड बनाया। अब 1.92 लाख की लागत से गलियों में टाइल बिछाने का काम की शुरुआत की गई। निवर्तमान पार्षद शकुंतला यादव ने शिलान्यास किया। सीवर लाइन का काम कुछ दिन लेट होने और पीछे बरसात का मौसम होने की वजह से काम शुरू नहीं हो पाया था। जिसका साईं कुंज की सरदारी के द्वारा विधिवत मुहुर्त किया गया। आरडब्ल्यूए अध्यक्ष राकेश राना ने कहा कि लंबे समय से सुविधाओं की मांग की जा रही थी। अब जाकर काम शुरू हो सका। इन कामों से लोगों को राहत मिलगी।

गाजियाबाद में 16 साल की किशोरी ने की आत्महत्या सुसाइड नोट में लिखा:'मेरी मौत का जिम्मेदार कोई नहीं': भाई नशा करते हैं...शायद इस कदम से सुधरेंगे

दिल्ली एनसीआर:- उत्तर प्रदेश के गाजियाबाद में वैशाली के एक टावर में गुरुवार रात 16 साल की किशोरी ने दो भाइयों का नशा छुड़ाने के लिए सुसाइड नोट लिखा और उसे दीवार पर चिपकाकर आत्महत्या कर ली। दोपहर में मां ड्यूटी करने दिल्ली गई थी। रात में घर पहुंचने पर मां ने घटना की सूचना पुलिस को दी। पुलिस ने सुसाइड नोट कब्जे में लेकर जांच शुरू कर दी है। पुलिस पोस्टमार्टम रिपोर्ट का इंतजार कर रही है।

पुलिस ने बताया कि किशोरी तीन भाई और मां के साथ रहती थी। एक भाई पॉक्सो एक्ट के मामले में जेल में बंद है, जबकि उसके दो भाई नशा करते हैं। वह लगातार दोनों को नशा छोड़ने के लिए कह रही थी, लेकिन दोनों उसकी बात नहीं सुनते थे। वह दोनों को समझाकर परेशान हो चुकी थी। 

गुरुवार दोपहर किशोरी की मां दिल्ली काम करने चली गई थी। 

तब वह कमरे में ही थी। दोनों भाई बाहर घूम रहे थे। रात को मां घर लौटीं तो उन्होंने गेट खटखटाया। काफी देर तक गेट नहीं खुलने पर उन्हें शक हुआ। पुलिस को फोन कर अनहोनी की आशंका जाहिर की।

डायल-112 और थाना पुलिस मौके पर पहुंची और पड़ोसियों की मदद से दरवाजे की कुंडी तोड़कर अंदर गई। कमरे में किशोरी पंखे से लटकी हुई थी। परिजन और पुलिस उसे तुरंत अस्पताल लेकर पहुंचे। वहां डाक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया।

पुलिस का कहना है कि कमरे में दीवार पर किशोरी ने सुसाइड नोट चिपकाया था। उसमें लिखा था कि मेरे दोनों भाई नशा करते हैं वैसे तो ये सुधरे नहीं। शायद मेरे इस कदम को उठाने के बाद दोनों नशा छोड़ देंगे। मेरी मौत का जिम्मेदार कोई नहीं है।

मां ने देरी से उठने पर लगाई थी डांट

पुलिस को मां ने बताया कि बेटी रोजाना देर रात तक जागती थी। फिर अगली सुबह देर से उठकर कमरे से बाहर आती थी। उन्होंने किशोरी को कई बार समझाया था लेकिन वह नहीं मानी। इसके लिए मां ने डांटा भी था इसके बाद वह ड्यूटी चली गई थी। इंदिरापुरम एसीपी स्वतंत्र कुमार सिंह का कहना है कि किशोरी की मौत के मामले में कोई शिकायत नहीं मिली है। पोस्टमार्टम रिपोर्ट आने पर मौत का कारण स्पष्ट होगा।

दिल्ली: स्वतंत्रता दिवस पर दिल्ली मेट्रो सेवाएं सुबह 5 बजे से होगी शुरू,14 अगस्त से बंद रहेगी स्टेशन पर पार्किंग


दिल्ली:- देश भर में 77 वें स्वतंत्रता दिवस की तैयारियां जोरों पर हैं। अब दिल्ली मेट्रो ने स्वतंत्रता दिवस समारोह में भाग ने वाले यात्रियों को ध्यान में रखते हुए सुबह पांच बजे से मेट्रो की सेवाएं शुरू हो जाएगी और सुबह 6 बजे तक हर 30 मिनट के अंतराल पर ट्रेन मिलेगी।

सुबह पांच बजे से चलेगी ट्रेन

डीएमआरसी के अनुसार, 15 अगस्त, 2023 मंगलवार को स्वतंत्रता दिवस समारोह में भाग लेने वाले यात्रियों की सुविधा को ध्यान में रखते हुए सभी लाइनों पर दिल्ली मेट्रो की सेवाएं सुबह पांच बजे से शुरू हो जाएंगी। साथ ही सभी लाइनों से मंगलवार सुबह मेट्रो पांच बजे से छह बजे तक हर 30 मिनट के अंतराल पर चलेंगी और सुबह छह बजे से पूरे दिन मेट्रो की सेवाएं सामान्य रूप से चलेंगी।

बंद रहेगी पार्किंग

इसके अलावा स्वतंत्रता दिवस पर सुरक्षा के उपायों को ध्यान में रखते हुए सोमवार यानी 14 अगस्त, 2023 सुबह छह बजे से मंगलवार यानी 15 अगस्त, 2023 को दोपहर दो बजे तक दिल्ली मेट्रो स्टेशनों पर पार्किंग की सुविधा उपलब्ध नहीं होगी। हालांकि, मेट्रो की सेवाएं सामान्य नियम के अनुसार चलती रहेंगी।

गैंगस्टर अतीक अहमद की हत्या मामले में सुप्रीम कोर्ट ने उठाया बड़ा कदम 2017 से अब तक यूपी में हुए 183 एनकाउंटर का मांगा ब्योरा

 

दिल्ली:- उत्तर प्रदेश में गैंगस्टर अतीक अहमद और उसके भाई अशरफ की हत्या के मामले को लेकर सुप्रीम कोर्ट का बड़ा कदम उठाया है। सुप्रीम कोर्ट ने यूपी सरकार से 2017 से अब तक हुई 183 एनकाउंटर का ब्योरा मांगा है।

सुप्रीम कोर्ट ने यूपी सरकार से पूछा है कि एनकाउंटर की निगरानी की क्या व्यवस्था है? कोर्ट ने राज्य सरकार से यह भी जानना चाहा कि क्या पुलिस एनकाउंटर में सुप्रीम कोर्ट और राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग द्वारा जारी दिशानिर्देशों का पालन कर रही है? इन सारे सवालों के जवाब के साथ ही यूपी सरकार से चार हफ्ते में रिपोर्ट मांगी गई है। 

जस्टिस एस रवींद्र भट और जस्टिस अरविंद कुमार की पीठ ने अतीक अहमद हत्याकांड से संबंधित विभिन्न याचिकाओं पर सुनवाई करते हुए यह निर्देश दिया पीठ ने पांच-दस लोगों की सुरक्षा में अतीक की हत्या की घटना पर भी सवाल उठाया और कहा कि कोई कैसे आकर गोली मार सकता है? कोर्ट को किसी की मिलीभगत पर संदेह है। इसके साथ ही कोर्ट ने पूछा कि अतीक के दो नाबालिग बेटों को न्यायिक हिरासत में क्यों रखा गया है? अगर वो किसी अपराध में शामिल नहीं हैं तो उन्हें उनके रिश्तेदारों को क्यों नहीं सौंपा जा रहा?

यूपी सरकार ने बताया कि उन्होंने इस मामले में चार्जशीट दाखिल कर दी है। सुप्रीम कोर्ट ने उत्तर प्रदेश में एनकाउंटर से संबंधित एक याचिका पर सुनवाई कर रही थी। वकील विशाल तिवारी द्वारा दायर याचिका में अतीक और अशरफ की हत्या की जांच के लिए सुप्रीम कोर्ट के पूर्व न्यायाधीश की अध्यक्षता में एक स्वतंत्र विशेषज्ञ समिति गठित करने की मांग की गई है।

एक अन्य याचिका अतीक अहमद और अशरफ की बहन आयशा नूरी ने दायर की है। आयशा नूरी ने भी अतीक और अशरफ की हत्या की सेवानिवृत्त न्यायाधीश की अध्यक्षता या एक स्वतंत्र एजेंसी से जांच की मांग की है। उन्होंने अपने भतीजे और अतीक अहमद के बेटे की एनकाउंटर में मौत की भी जांच की मांग की है।

उप्र सरकार ने अतीक की मौत के मामले में सुप्रीम कोर्ट में एक रिपोर्ट दायर की है और सुप्रीम कोर्ट को अवगत कराया है कि पुलिस सुधार और आधुनिकीकरण के उपाय चल रहे हैं।