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लंदन में दिए बयान पर मचे बवाल के बीच राहुल का कटाक्ष, कहा-मुझे बोलने का मौका दिया गया तो लोकसभा में दूंगा जवाब

#rahul_gandhi_in_parliament_if_allowed_to_speak_in_the_house

लंदन में दिए बयान के बाद मचे सियासी संग्राम के बीच कांग्रेस सांसद राहुल गांधी बुधवार (15 मार्च) को भारत लौट आए। आज वह संसद भी पहुंचे।संसद से बाहर निकलते हुए राहुल ने ब्रिटेन में अपने बयान को लेकर कहा कि अगर मुझे संसद में बोलने का मौका दिया जाता है तो मैं अपने विचार सामने रखूंगा।

कांग्रेस सांसद राहुल गांधी से संसद जाते हुए समाचार एजेंसी एएनआई से कहा, मैंने भारत विरोधी कुछ भी नहीं बोला। अगर वे अनुमति देंगे तो मैं संसद के अंदर बोलूंगा।

केंद्रीय मंत्री किरेन रिजिजू ने कहा कि अगर राहुल गांधी कुछ कहते हैं और इससे कांग्रेस को परेशानी होती है, तो इससे हमारा कोई लेना-देना नहीं है। लेकिन अगर वह हमारे देश को बदनाम करते हैं, तो इस देश के नागरिक के रूप में हम चुप नहीं बैठ सकते। रिजिजू ने कहा, राहुल गांधी को अपने लंदन सेमिनार में कही गई बातों के लिए माफी मांगनी चाहिए। उन्होंने हमारे लोकतंत्र, न्यायपालिका और देश का अपमान किया है। हमें अपने देश के खिलाफ बोलने वालों के खिलाफ आवाज उठानी चाहिए।

दूसरी ओर, कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने सरकार पर विपक्ष को उकसाने का आरोप लगाते हुए आज गुरुवार को कहा कि वह अडानी मुद्दे और अपनी ‘नाकामियों’ पर चर्चा से बचने के लिए संसद नहीं चलने दे रही है। खरगे ने एक बार फिर कहा कि राहुल गांधी की ब्रिटेन में की गई टिप्पणी को लेकर माफी मांगने का कोई सवाल ही नहीं है।

बता दें कि लंदन के कैम्ब्रिज यूनिवर्सिटी में अपने लेक्चर को लेकर राहुल गांधी भाजपा और मोदी सरकार के निशाने पर हैं। इसे लेकर संसद में हंगामा मचा हुआ है और भाजपा लगातार उनसे माफी मांगने की मांग कर रही है। बीजेपी ने मांग की है कि राहुल गांधी विदेशी धरती पर भारत का अपमान करने के लिए संसद से माफी मांगें।इसी हंगामे के चलते संसद की कार्यवाही रोजाना बाधित हो रही है।

भारतीय सेना का चीता हेलीकॉप्टर अरुणाचल में हादसे का शिकार, पालयट लापता

#indian_army_cheetah_helicopter_has_crashed

अरुणाचल प्रदेश में बड़ा हादसा हुआ है। भारतीय सेना का चीता हेलीकॉप्टर अरुणाचल प्रदेश के मंडला पहाड़ी इलाके के पास दुर्घटनाग्रस्त हो गया है।हादसे के बाद पायलटों की तलाश के लिए सर्च ऑपरेशन शुरू कर दिया गया है।

पीआरओ, डिफेंस गुवाहाटी लेफ्टिनेंट कर्नल महेंद्र रावत ने बताया कि अरुणाचल प्रदेश के बोमडिला के पास ऑपरेशनल सॉर्टी में आर्मी एविएशन चीता हेलीकॉप्टर उड़ान पर था। सुबह लगभग 09:15 बजे इसके एटीसी से संपर्क टूटने की सूचना मिली थी। सर्च अभियान शुरू कर दिया गया है।

*कम नहीं हो रही जेल में बंद मनीष सिसोदिया की मुश्किलें, अब जासूसी मामले में एफआईआर

#cbiregisterscaseagainstmanish_sisodia

जेल में बंद आम आदमी पार्टी के नेता मनीष सिसोदिया की मुश्किलें कम होने का नाम नहीं ले रही हैं।सीबीआई ने सिसोदिया पर यह दूसरी एफआईआर दर्ज की है।यह एफआईआर दिल्ली फीडबैक यूनिट (एफबीयू) भ्रष्टाचार मामले में की गई है।बता दें कि मनीष सिसोदिया फिलहाल तिहाड़ जेल में बंद हैं। सीबीआई ने 26 फरवरी को दिल्ली आबकारी नीति मामले में सिसोदिया को गिरफ्तार किया था।

सिसोदिया समेत सात लोगों के खिलाफ प्राथमिकी

सीबीआई ने सत्ताधारी आम आदमी पार्टी की कथित ‘फीडबैक यूनिट’ (एफबीयू) से जुड़े एक जासूसी मामले में दिल्ली के पूर्व उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया समेत सात लोगों के खिलाफ भ्रष्टाचार निरोधक अधिनियम के तहत प्राथमिकी दर्ज की है। सीबीआई ने अपनी प्रारंभिक जांच में पाया कि भ्रष्टाचार पर लगाम लगाने के लिए दिल्ली सरकार द्वारा गठित एफबीयू ने कथित तौर पर ‘राजनीतिक खुफिया जानकारी’ एकत्र की। 

एमएचए की मंजूरी के 14 दिन बाद एफआईआर

बीती 8 फरवरी को सीबीआई फीडबैक यूनिट के कथित जासूसी मामले में केंद्रीय गृह मंत्रालय से आप नेता के खिलाफ मामला दर्ज करने की मांग की थी। केंद्रीय गृह मंत्रालय ने केंद्रीय जांच एजेंसी को सिसोदिया पर भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम के तहत मुकदमा चलाने की मंजूरी दी थी। इसके बाद से ही मनीष सिसोदिया के खिलाफ केस दर्ज करने की आशंका जताई जा रही थी। केंद्रीय गृह मंत्रालय (एमएचए) द्वारा सिसोदिया के खिलाफ मुकदमा चलाने की मंजूरी दिए जाने के 14 दिन बाद सीबीआई ने 14 मार्च को एफआईआर दर्ज की है।

इन लोगों पर दर्ज हुआ केस

सिसोदिया के अलावा जिन लोगों पर केस दर्ज हुआ है उनमें, तत्कालीन विजिलेंस सेक्रेटरी सुकेश कुमार जैन, रिटायर्ड डीआईजी, सीआईएसएफ एंड स्पेशल एडवाइजर टू सीएम एंड जॉइंट डायरेक्टर फीडबैक यूनिट, रिटायर्ड जॉइंट डिप्टी डायरेक्टर प्रदीप कुमार पुंज (डिप्टी डायरेक्टर एफबीयू), रिटायर्ड असिस्टेंट कमांडेंट सीआईएसएफ सतीश खेत्रपाल (फीड बैक अफसर), गोपाल मोहन (दिल्ली सीएम के एडवाइजर) और एक अन्य नाम शामिल हैं।

एफबीयू में नियुक्तियों के लिए उपराज्यपाल से कोई मंजूरी नहीं ली गई

बता दें कि दिल्ली में आप के सत्ता में आने के बाद इस विभाग के तहत फीडबैक यूनिट बनाई गई थी। एजेंसी ने आरोप लगाया कि मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने 2015 में एक कैबिनेट बैठक में प्रस्ताव पेश किया था, लेकिन कोई एजेंडा नोट प्रसारित नहीं किया गया था। उसने आरोप लगाया कि एफबीयू में नियुक्तियों के लिए उपराज्यपाल से कोई मंजूरी नहीं ली गई थी। सीबीआई ने अपनी शुरुआती जांच रिपोर्ट में कहा था कि फीडबैक इकाई ने उसे सौंपी गई जानकारी एकत्र करने के अलावा राजनीतिक खुफिया/विविध गोपनीय जानकारियों को भी एकत्र किया।

महबूबा मुफ़्ती ने पुंछ जिले के नवग्रह मंदिर में शिवलिंग का किया जलाभिषेक, बीजेपी ने बताया नौटंकी

#mehbooba_mufti_performed_jalabhishek_shivling

जम्मू-कश्मीर की पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती काफी बदल गई हैं। जीं हां, अपने बदले हुए व्यवहार के कारण पीडीपी प्रमुख महबूबा मुफ्ती चर्चा में आ गई है। मुफ्ती के चर्चा में आने का कारण है उनका शिवलिंग का जलाभिषेक करना। दरअसल, महबूबा मुफ्ती पूंछ जिले की दौरे पर थीं और उन्होंने नवग्रह मंदिर में पूजा अर्चना की और शिवलिंग पर जल चढ़ाया है। यही नहीं, उन्होंने मंदिर में बनी पूर्व एमएलसी एवं वरिष्ठ पीडीपी नेता यशपाल शर्मा की मूर्ति पर फूल भी चढ़ाए।

मुफ्ती दो दिवसीय पूंछ जिले के दौरे पर हैं।दौरान महबूबा मुफ्ती यहां के नवग्रह मंदिर गई थी। यहां महबूबा मुफ्ती ने न सिर्फ मंदिर में अंदर घूमकर निरीक्षण किया बल्कि शिवलिंग पर जलाभिषेक भी किया।मुफ्ती ने नवग्रह मंदिर में काफी समय व्यतीत किया। महबूबा मुफ़्ती ने जिस नवग्रह मंदिर का दौरा किया, इसका निर्माण पीडीपी के पूर्व एमएलसी यशपाल शर्मा ने करवाया था। मंदिर के अन्दर यशपाल शर्मा की प्रतिमा भी लगाई गई है।वहां स्थापित पूर्व एमएलसी एवं वरिष्ठ पीडीपी नेता यशपाल शर्मा की प्रतिमा पर पुष्प चढ़ाकर श्रद्धासुमन भेंट किए। इस अवसर पर पीडीपी नेताओं के साथ दिवंगत यशपाल शर्मा के पुत्र एवं युवा समाज सेवक डॉ. उदेशपाल शर्मा भी मौजूद रहे।

बीजेपी बोली- ड्रामा

वहीं महबूबा मुफ़्ती के जलाभिषेक करने पड़ बीजेपी ने उनपर निशाना साधा है। भाजपा ने महबूबा के मंदिर जाने को ड्रामा बताया है। पार्टी ने कहा कि कभी महबूबा ने अमरनाथ धाम के लिए जमीन देने से इनकार कर दिया था।बीजेपी के प्रदेश प्रवक्ता रणवीर सिंह ने कहा कि ये पीडीपी प्रमुख की एक मात्र नौटंकी है। उन्होंने कहा, “2008 में महबूबा मुफ्ती और उनकी पार्टी ने अमरनाथ जी श्राइन बोर्ड को भूमि आवंटन का विरोध किया था। महबूबा मुफ्ती की पार्टी ने तीर्थयात्रियों के लिए हट के निर्माण के लिए श्राइन बोर्ड को भूमि के अस्थायी हस्तांतरण की अनुमति नहीं दी थी।

देवबंद के मौलाना बोले- यह इस्लाम के खिलाफ

इधर, देवबंद के मौलाना असद कासमी ने महबूबा के मंदिर जाने और वहां शिवलिंग पर जल चढ़ाने का विरोध किया है। कासमी ने कहा- महबूबा ने जो किया, वह गलत है। यह इस्लाम के खिलाफ है।

राहुल गांधी के लंदन में दिए बयान पर सियासत जारी, अब किरेन रिजिजू का हमला, बोले- हमें देश के विरूद्ध बोलने वालों के खिलाफ आवाज उठानी चाहिए

#kiren_rijiju_s_big_attack_on_congress

राहुल गांधी के लंदन में दिए बयान पर सियासी बवाल कम होता नहीं दिख रहा है। राहुल गांधी के लंदन में दिए बयानों पर बीजेपी हमलावर है।अब केंद्रीय मंत्री किरेन रिजिजू ने राहुल गांधी पर निशाना साधते हुए उनसे माफी की मांग की है।

लंदन सेमिनार में कही गई बातों के लिए माफी की मांग

केंद्रीय मंत्री किरेन रिजिजू ने कहा कि अगर राहुल गांधी कुछ कहते हैं और इससे कांग्रेस को परेशानी होती है, तो इससे हमारा कोई लेना-देना नहीं है। लेकिन अगर वह हमारे देश को बदनाम करते हैं, तो इस देश के नागरिक के रूप में हम चुप नहीं बैठ सकते। रिजिजू ने कहा, राहुल गांधी को अपने लंदन सेमिनार में कही गई बातों के लिए माफी मांगनी चाहिए। उन्होंने हमारे लोकतंत्र, न्यायपालिका और देश का अपमान किया है। हमें अपने देश के खिलाफ बोलने वालों के खिलाफ आवाज उठानी चाहिए।

खड़गे ने कहा-माफ़ी का सवाल ही नहीं

वहीं किरेन रिजिजू के बयान पर कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा कि माफ़ी का सवाल ही नहीं। उन्होंने कहा, “यह उनकी साजिश है कि संसद नहीं चलने दी जाए और अडानी मामले में जेपीसी जांच की हमारी मांग को नजरअंदाज किया जाए। वे बेरोजगारी और मुद्रास्फीति के मुद्दों पर चर्चा नहीं करना चाहते हैं। इससे पहले कई मौकों पर मोदी जी विदेशों में भारत के खिलाफ बोल चुके हैं। माफी मांगने का कोई सवाल ही नहीं है।

राहुल के माफी मांगने पर अड़ा सत्ता पक्ष

सोमवार से शुरू हुए संसद के बजट सत्र के दूसरे चरण की कार्यवाही में सत्ताधारी पार्टी राहुल गांधी की ओर से माफी मांगने पर अड़ी हुई है। राहुल गांधी के माफी मांगने को लेकर सोमवार को भी दोनों सदनों में हंगामा देखने को मिला था। मंगलवार और बुधवार को भी हंगामी की वजह से संसद की कार्यवाही अधिकतर समय तक स्थगित रही थी।

क्या कहा था राहुल गांधी ने

बता दें कि हाल ही में राहुल गांधी लंदन के दौरे पर गए थे। उस दौरान उन्होंने लंदन में हाउस ऑफ पार्लियामेंट परिसर में एक कार्यक्रम में ब्रिटिश सांसदों को संबोधित करते हुए आरोप लगाया कि हमारे यहां लोकसभा में अक्सर विपक्षी सांसदों के माइक बंद कर दिए जाते हैं। हमें चर्चा करने की अनुमति नहीं दी जाती। राहुल गांधी ने आरएसएस पर भी हमला बोला और कहा कि आरएसएस ने भारत के सभी संस्थानों पर कब्जा कर लिया है। प्रेस, न्यायपालिका, संसद और चुनाव आयोग सभी खतरे में हैं। राहुल गांधी ने सरकार पर उनकी जासूसी करने और चीन के साथ सीमा विवाद पर भी सरकार पर झूठ बोलने का आरोप लगाया।

*ऑस्ट्रेलिया के ब्रिस्बेन में खालिस्तानी समर्थकों का उत्पात, जबरन बंद कराया भारतीय वाणिज्य दूतावास*

#indian_consulate_in_brisbane_closed_by_khalistani_supporters_posters 

ऑस्ट्रेलिया के प्रधानमंत्री एंथनी अल्बनीज हाल ही में अपने देश में भारत विरोधी तत्वों पर अंकुश लगाने का आश्वासन दिया था। ऑस्ट्रेलियाई प्रधानमंत्री के आश्वासन के कुछ दिन बाद ही ऑस्ट्रेलिया के ब्रिस्बेन में बुधवार को खालिस्तानी समर्थकों ने जमकर उत्पात मचाया। ब्रिस्‍बेन में भारतीय वाणिज्‍य दूतावास पर खालिस्‍तान समर्थकों ने हमला बोला और भारतीय वाणिज्य दूतावास को जबरन बंद करा दिया।

यह ऑस्ट्रेलिया में भारतीय समुदाय के खिलाफ हो रही कट्टरपंथी गतिविधियों की श्रृंखलाओं में एक और घटना है। खालिस्तान समर्थकों ने ब्रिस्बेन के तारिंगा उपनगर में स्वान रोड पर स्थित मानद वाणिज्य दूतावास के प्रवेश को बाधित कर दिया, जिसके कारण दूतावास को मजबूरन बंद करना पड़ा। क्वींसलैंड पुलिस ने बताया कि ये लोग अनधिकृत रूप से एकत्र हुए थे।

द ऑस्ट्रेलियन टुडे की रिपोर्ट के अनुसार, खालिस्तानी समर्थकों ने दूतावास के एंट्री गेट को ब्लॉक कर दिया था। पुलिस पर आरोप है कि वे तमाशबीन बने रहे। किसी पर कोई कार्रवाई नहीं की। क्वींसलैंड पुलिस ने कहा कि बिना परमीशन के लिए प्रोटेस्ट किया गया।

हिंदू मानवाधिकार की निदेशक सारा एल गेट्स ने द ऑस्ट्रेलिया टुडे को बताया कि सिख फॉर जस्टिस ने अपने प्रचार के साथ उन्हें निशाना बनाने के बाद सुरक्षा चिंताओं के कारण आज भारतीय वाणिज्य दूतावास को बंद करने के लिए मजबूर किया। गेट्स ने कहा कि वे खालिस्तान जिंदाबाद के नारे लगा रहे थे।

बता दें कि ऑस्‍ट्रेलिया के प्रधानमंत्री एंथोनी अल्‍बानीस ने 11 मार्च को नई दिल्‍ली में कहा था कि ऑस्‍ट्रेलिया में किसी भी धार्मिक इमारत में होने वाली किसी भी चरमपंथ की कार्रवाई या हमलों को बर्दाश्‍त नहीं किया जाएगा। हिंदू मंदिरों पर हुए हमलों की जांच होगी और पुलिस अपना काम करेगी। साथ ही उन्होंने ऐसे लोगों और संगठनों पर लगाम लगाने की बात भी कही थी।

बाइडेन का भारतीयों पर भरोसा कायम, पेंटागन में इस अहम पद के लिए चुने गए रवि चौधरी

#ravi_chaudhary_will_be_the_assistant_secretary_of_defense_of_the_us 

भारत और भारतीयों का दबदबा दुनिया भर में कायम है। अमेरिका में भी भारतीय काफी भरोसेमंद साबित हो रहे हैं।इसी क्रम में अमेरिका की सीनेट ने वायुसेना के सहायक रक्षा सचिव पद के लिए भारतीय-अमेरिकी रवि चौधरी के नाम पर मुहर लगा दी है। यह पद अमेरिकी रक्षा मंत्रालय के मुख्यालय पेंटागन के शीर्ष पदों में से एक है।व्हाइट हाउस ने शुक्रवार को एक बयान जारी किया। इसमें रवि को नॉमिनेट किए जाने की पुष्टि की गई है।

सीनेट में हुई वोटिंग के दौरान चौधरी के पक्ष में 65 वोट पड़े। 29 सदस्यों ने उनके खिलाफ वोट डाला। उन्हें पेटागन (अमेरिकी सेना मुख्यालय) में टॉप सिविलियन लीडरशिप के पदों में से एक पद मिला है। चौधरी पहले अमेरिकी परिवहन विभाग में सीनियर एग्जीक्यूटिव के रूप में कार्य कर चुके हैं। जहां वे फेडरल एविएशन एडमिनिस्ट्रेशन में एडवांस्ड प्रोग्राम्स एंड इनोवेशन, ऑफिस ऑफ कमर्शियल स्पेस के निदेशक थे।

रवि चौधरी ने अमेरिकी वायुसेना में 1993 से 2015 तक पायलट के रूप में एक्टिव ड्यूटी की है। उन्होंने अफगानिस्तान और इराक में हुई लड़ाई में हिस्सा लिया है। वायुसेना से रिटायर होने के बाद चौधरी ने फेडरल एविएशन एडमिनिस्ट्रेशन के कमर्शियल स्पेस ऑफिस में पांच साल काम किया। पूर्व राष्ट्रपति ओबामा ने उन्हें एशियाई अमेरिकियों और प्रशांत द्वीपसमूह पर राष्ट्रपति के सलाहकार आयोग में सेवा देने के लिए नियुक्त किया था। इस भूमिका में उन्होंने एएपीआई समुदाय के लिए पूर्व सैनिकों के समर्थन में सुधार के लिए कार्यकारी शाखा के प्रयासों पर राष्ट्रपति को सलाह दी।

एरिक गार्सेटी होंगे भारत में अमेरिका के नए राजदूत, यूएस सीनेट ने दी मंजूरी, राष्ट्रपति जो बाइडेन के हैं करीबी

#eric_garcetti_will_be_us_ambassador_to_india_approved_by_us_senate 

लॉस एंजिल्स के पूर्व मेयर एरिक गार्सेटी भारत में अमेरिका के नए राजदूत होंगे।अमेरिकी सीनेट ने अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडन के निकट सहयोगी एरिक गार्सेटी की भारत के राजदूत के रूप में नियुक्ति की बुधवार को पुष्टि कर दी।भारत में अमेरिका के अगले राजदूत के तौर पर एरिक गार्सेटी के नामांकन पर सीनेट में बुधवार को मतदान हुआ।सीनेट में मतदान के बाद उनके नाम पर मुहर लगी।

अमेरिकी कांग्रेस (संसद) में एरिक गार्सेटी का नामंकन जुलाई 2021 से ही लंबित था। राष्ट्रपति जो बाइडन ने एरिक गार्सेटी के नाम का प्रस्ताव समिति के पास भेजा था। कुल 52 वोट भारत में अमेरिकी राजदूत के लिए डाले गए, जिसमे से 42 वोट एरिक गार्सेटी के पक्ष में पड़े। डेमोक्रेट के सभी सदस्यों के साथ-साथ रिपब्लिकन सीनेटर टॉड यंग और बिल हेर्टी ने भी एरिक गार्सेटी के पक्ष में मतदान किया।

यूएस सीनेट से अपने नामांकन को मंजूरी मिलने के बाद एरिक गार्सेटी ने खुशी का इजहार किया। उन्होंने एक बयान में कहा कि वह आज के नतीजे से काफी खुश है, जो लंबे समय से खाली पड़े महत्वपूर्ण पद को भरने के लिए जरूरी था। उन्होंने आगे कहा, 'मैं राष्ट्रपति जो बाइडन और व्हाइट हाउस का आभारी हूं। मैं भारत में हमारे महत्वपूर्ण हितों का प्रतिनिधित्व करने वाली अपनी सेवा शुरू करने के लिए तैयार और उत्सुक हूं।

52 वर्षीय एरिक गार्सेटी नई दिल्ली में केन जस्टर की जगह लेंगे, जिन्हें तत्कालीन राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प द्वारा नामित किया गया था और मई 2017 में भारत में अमेरिका का राजदूत बनाकर भेजा गया था। जो बाइडेन के राष्ट्रपति बनते ही उन्होंने अपने पद से इस्तीफा दे दिया था।

महिला आयोग की तर्ज पर बनेगा ‘राष्ट्रीय पुरुष आयोग'! जानें सुप्रीम कोर्ट क्यों पहुंचा मामला

#nationalcommissionformenpleainsupreme_court 

सुप्रीम कोर्ट में एक याचिका दायर की गई है, जिसमें पुरुषों के लिए राष्ट्रीय आयोग की मांग की गई है।घरेलू हिंसा के शिकार विवाहित पुरुषों द्वारा आत्महत्या किए जाने के मामलों से निपटने के लिए दिशा-निर्देश और ‘राष्ट्रीय पुरुष आयोग' बनाने के अनुरोध को लेकर सुप्रीम कोर्ट में एक याचिका दायर की गई है।यह याचिका वकील महेश कुमार तिवारी द्वारा दायर की गई है। याचिका में राष्ट्रीय अपराध रिकॉर्ड ब्यूरो (एनसीआरबी) की देश में दुर्घटनावश होने वाली मौतों के आंकड़ों का हवाला दिया है। 

एनएचआरसी को कार्रवाई करने का निर्देश देने की गुहार

याचिका में एनसीआरबी के आंकड़ों का हवाला देते हुए कहा गया, वर्ष 2021 में दावा किया गया कि उस वर्ष पूरे देश में 1,64,033 लोगों ने आत्महत्या की। याचिका में कहा गया है कि इनमें से आत्महत्या करने वाले विवाहित पुरुषों की संख्या 81,063 थी जबकि 28,680 विवाहित महिलाएं थीं।याचिका में एनसीआरबी के रेकॉर्ड को पेश किया गया है और कहा गया है कि 33.2 फीसदी पुरुषों ने पारिवारिक समस्या के कारण और 4.8 फीसदी ने विवाह संबंधित विवाद और डोमेस्टिक वायलेंस के कारण आत्महत्या कर ली है। याचिका में कहा गया है कि पुरुषों के आत्महत्या से निपटने के लिए और घरेलू हिंसा से पीड़ित पुरुषों की शिकायत पर राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग (एनएचआरसी) को कार्रवाई करने का निर्देश देने की गुहार लगाई गई है।

गृह मंत्रालय से अपील

याचिका में केंद्र को गृह मंत्रालय के जरिए पुलिस विभाग को यह निर्देश देने का अनुरोध भी किया गया है कि घरेलू हिंसा के शिकार पुरुषों की शिकायतें तत्काल स्वीकार की जाएं। याचिका में मांग की गई कि घरेलू हिंसा या पारिवारिक समस्या और विवाह संबंधी मुद्दों से पीड़ित विवाहित पुरुषों की आत्महत्या के मुद्दे पर अनुसंधान करने के लिए भारत के विधि आयोग को एक निर्देश/सिफारिश जारी करें और राष्ट्रीय जैसे मंच का गठन करने के लिए आवश्यक रिपोर्ट तैयार करें।

इमरान को कोर्ट से राहत, लाहौर हाईकोर्ट ने गिरफ्तारी रोकने का दिया आदेश

#lahore_high_court_orders_stop_police_operation_for_arrest_of_imran_khan 

पाकिस्तान के पूर्व पीएम इमरान खान को अरेस्ट करने की सारी कोशिशें बेकार साबित हुईं। इमरान के समर्थकों ने पुलिस को करारा जवाब दिया। उनके समर्थकों और पुलिस के बीच हुई झड़प के बाद लाहौर के जमान पार्क इलाके में किसी जंग के मैदान जैसा मंजर दिखा। सड़कों पर आंसू गैस के गोले, जले हुए टायर और वाहन का मलबा बिखरा पड़ा नजर आ रहा है। इस झड़प में दर्जनों पुलिसकर्मी घायल हुए हैं।इस बीच लाहौर हाई कोर्ट से इमरान खान को राहत मिल गई है। हाई कोर्ट ने कल यानी 16 मार्च सुबह 10 बजे तक पुलिस की कार्रवाई पर रोक लगा दी है।

इमरान खान के आवास के बाहर पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ के अध्यक्ष (पीटीआई) समर्थकों और कानून प्रवर्तन एजेंसियों के बीच दिन भर चली नोकझोंक के कुछ घंटे बाद लाहौर उच्च न्यायालय ने जमान पार्क में कल सुबह 10 बजे तक पुलिस कार्रवाई रोक दी। बताया जा रहा है कि कोर्ट ने पुलिस को फिलहाल इमरान को गिरफ्तार किए बिना ही पीछे हटने को कहा है।

कोर्ट के आदेश के बाद इमरान खान की गिरफ्तारी के लिए जमान पार्क पर जमा हुई पुलिस पीछे हटनी शुरू हो गई है। लाहौर हाई कोर्ट ने पंजाब के आईजी, मुख्य सचिव और इस्लामाबाद पुलिस (ऑपरेशंस) हेड को तलब किया है। पीटीआई नेता फवाद चौधरी ने जमान पार्क के बाहर पुलिस की कार्रवाई के खिलाफ याचिका दायर की थी, जिस पर लाहौर हाई कोर्ट के जस्टिस तारिक सलीम शेख ने ये निर्देश दिए हैं। बताया जा रहा है कि पीएसएल मैच के चलते ये फैसला किया गया है। 

लाहौर हाईकोर्ट की ओर से कहा गया कि इस्लामाबाद उच्च न्यायालय से आदेश जारी होने तक पुलिस इमरान खान की गिरफ्तारी के लिए ज़मान पार्क में अपना अभियान रोक दे। इस बीच इस्लामाबाद हाई कोर्ट में इमरान खान के खिलाफ जारी किए गए अरेस्ट वारंट पर सुनवाई हुई। हाई कोर्ट ने अपना फैसला सुरक्षित रख लिया है।

इससे पहले लाहौर में इमरान खान के आवास के बाहर बख्तरबंद पुलिस वाहन पहुंचे थे। इस्लामाबाद के वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने कहा था कि पुलिस उन्हें गिरफ्तार करना चाहती है। इमरान खान के आवास के बाहर पीटीआई कार्यकर्ता जमा होने लगे थे। इसके बाद पुलिस के साथ उनकी हिंसक झड़प भी शुरू हो गई थी।