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*ट्रूडो के इस्तीफे के साथ ही बदल गया कनाडा? निज्जर मर्डर केस के चारों आरोपियों को जमानत

#canadahardeepsinghnijjaraccused_bail

भारत और कनाडा के रिश्तों के बीच खटास की सबसे बड़ी वजह रही खालिस्तानी आतंकी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या का मामला। हरदीप सिंह निज्जर हत्याकांड को लेकर कनाडा के प्रधानमंत्री ने भारत पर गंभीर आरोप लगाए थे। जिसके बाद दोनों देशों के संबंध सबसे खराब स्तर पर पहुंच गए। इस बीच इस मामले में एक नया मोड आया है। निजजर की हत्या मामले में कनाडा में गिरफ्तार किए गए सभी चार भारतीयों को कनाडा की कोर्ट ने जमानत दे दी है। इनके नाम करण बराड़, अमनदीप सिंह, कमलप्रीत सिंह और करणप्रीत सिंह हैं। इनपर प्रथम डिग्री हत्या और हत्या की साजिश रचने का आरोप लगाया गया था। ये सब तब हुआ है जब ट्रूडो को प्रधानमंत्री पद से इस्तीफा देना पड़ा है।

खालिस्तानी आतंकी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या के आरोपी बनाए गए चार भारतीय नागरिकों को कनाडा के सुप्रीम कोर्ट ने जमानत पर रिहा कर दिया है। कनाडाई सुप्रीम कोर्ट ने इस मामले में कनाडाई पुलिस को पर्याप्त सबूत पेश नहीं कर पाने के चलते फटकार भी लगाई है। अब इस मामले की सुनवाई 11 फरवरी को निचली अदालत में होगी, जहां नवंबर, 2024 में पुलिस ने इन चारों के खिलाफ चार्जशीट दाखिल की थी।

पुलिस अदालत में पेश नहीं हुई

दरअसल, इस केस में कनाडा पुलिस की भूमिका सवालों के घेरे में आ गई है. निचली अदालत में सबूत पेश करने में असफल रहने के कारण पुलिस अदालत में पेश नहीं हुई. सुप्रीम कोर्ट ने पुलिस की इस निष्क्रियता को देखते हुए चारों आरोपियों को जमानत पर रिहा कर दिया।

कौन हैं चारों आरोपी?

कनाडा ने निज्जर मर्डर केस में साल 2024 में मई के महीने में चार भारतीयों को अरेस्ट किया गया था। आईएचआईटी ने 3 मई को हरदीप सिंह निज्जर की हत्या के लिए तीन भारतीय नागरिक, करण बराड़ (22), कमलप्रीत सिंह (22) और करणप्रीत सिंह (28) को गिरफ्तार किया था। तीनों व्यक्ति एडमोंटन में रहने वाले भारतीय नागरिक थे और उन पर फर्स्ट डिग्री की हत्या और हत्या की साजिश रचने का आरोप लगाया गया था।

इसी के बाद आरोपी अमरदीप सिंह (22) को भी इस केस में अरेस्ट किया गया था। अमरदीप सिंह पर फर्स्ट-डिग्री हत्या और हत्या की साजिश रचने का आरोप लगाया गया था। रॉयल कैनेडियन माउंटेड पुलिस (आरसीएमपी) की इंटीग्रेटेड होमिसाइड इन्वेस्टिगेशन टीम (आईएचआईटी) ने कहा था कि अमरदीप सिंह को निज्जर की हत्या में उनके रोल के लिए 11 मई को गिरफ्तार किया गया था।

क्या था हरदीप सिंह निज्जर मर्डर केस?

खालिस्तानी आतंकी हरदीप सिंह निज्जर की 18 जून साल 2023 में कनाडा के सरे में एक गुरुद्वारे के बाहर गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। वह भारत में वांटेड घोषित था। निज्जर साल 1997 में कनाडा भाग गया था और उसके खिलाफ भारत में दर्जन भर से ज्यादा कत्ल और आतंकी गतिविधियों में शामिल होने को लेकर केस दर्ज हैं। इसके बावजूद कनाडा की सरकार ने निज्जर के खिलाफ कोई एक्शन नहीं लिया था। साल 2023 में निज्जर की हुई हत्या के बाद भारत और कनाडा के बीच एक नया विवाद पैदा हुआ।

क्या भारत से संबंध सुधारने की कवायद शुरू?

बता दें कि कनाडाई प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो ने अपनी संसद में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली भारत सरकार पर निज्जर की हत्या का आरोप लगाकर तहलका मचा दिया था। सिख वोटों को अपने पक्ष में जुटाने के लिए ट्रूडो इस आरोप पर अड़े रहे, लेकिन कोई सबूत पेश नहीं कर सके। इसके चलते भारत-कनाडा के संबंध लगातार खराब होते चले गए। हालांकि ट्रूडो को इससे कोई लाभ नहीं हुआ है और उन्हें अपने पद से इस्तीफा देना पड़ा है। उनके इस्तीफा देते ही चारों भारतीय आरोपियों को जमानत पर रिहा करने का फैसला आ गया है। इससे यह चर्चा शुरू हो गई है कि क्या ट्रूडो के बाद कनाडा में भारत से संबंध सुधारने की कवायद शुरू हो गई है।

जॉर्ज सोरोस के मुद्दे पर भिड़े हरदीप पुरी और शशि थरूर, सोरोस को लेकर 2009 के पोस्ट पर छिड़ी “जंग”

#hardeepsinghpuriandshashitharoorclashedoverdinnerwithgeorge_soros

अमेरिकी अरबपति जॉर्ज सोरोस एक बार फिर भारतीय राजनीति में एक अहम मुद्दा बनते दिख रहे हैं। जॉर्ज सोरोस और कांग्रेस से उससे संबंधों पर भारतीय जनता पार्टी अक्सर घेरती है। इस बार कांग्रेस ने सोरोस के बहाने बीजेपी पर ही निशाना साधा है। कांग्रेस सांसद शशि थरूर और केंद्रीय मंत्री हरदीप पुरी के बीच जॉर्ज सोरोस को लेकर सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर जुबान जंग छिड़ी हुई है।

सांसद शशि थरूर ने केंद्रीय मंत्री हरदीप सिंह पुरी पर आरोप लगाया कि उनकी जॉर्ज सोरोस से न्यूयॉर्क में मुलाकात हुई थी। थरूर का आरोप है कि हरदीप पुरी को सोरोस ने डिनर के लिए न्योता भी दिया था। अपने उपर लगे आरोपों पर अब मोदी सरकार के मंत्री ने जवाब दिया है। पुरी ने थरूर को जवाब देते हुए कहा कि थरूर ने ही सोरोस को डिनर पर बुलाया था। अब सोरोस के मुद्दे पर दोनों नेताओं के बीच एक्स वॉर शुरू हो गया है।

दरअसल, 8 दिसंबर को भाजपा ने गांधी परिवार पर अमेरिकी उद्योगपति जॉर्ज सोरोस के फाउंडेशन से फंड लेने का आरोप लगाया था। साथ ही कहा था कि भारत विरोधी सोरोस और कांग्रेस मिलकर भारत की इकोनॉमी तबाह करना चाहते हैं।

इसके बाद एक्स पर सांसद शशि थरूर का 2009 का पोस्ट वायरल हुआ। कर्नाटक के एक बीजेपी कार्यकर्ता ने थरूर की 2009 की एक पुरानी पोस्ट दिखाई। जिसमें उन्होंने लिखा था- पूराने मित्र सोरोस से मुलाकात हुई। वे एक निवेशक ही नहीं, बल्कि दुनिया की चिंता करने वाले नागरिक भी हैं।

कैसे शुरू हुआ विवाद?

बीजेपी के कार्यकर्ता ने उस पोस्ट पर रिपोस्ट करते हुए सवाल किया कि इस एक्स पोस्ट के बारे में आपका क्या ख्याल है थरूर?

थरूर ने अपनी इसी पोस्ट का जवाब देते हुए 15 दिसंबर को कहा- ये मुलाकात हरदीप पुरी (केंद्रीय मंत्री) के घर हुई थी। वे सिर्फ सोशल सेंस में मेरे दोस्त थे। मैंने उनसे एक रुपए भी नहीं लिया। इस पोस्ट के बाद मैं एक बार और उनसे मिला था। यह मुलाकात हरदीप पुरी के घर डिनर पार्टी में हुई थी। थरूर ने आगे कहा कि मेरे पुराने रिश्ते के कभी कोई राजनीतिक अर्थ नहीं थे। मुझे उम्मीद है कि यह उन लोगों के लिए इस मामले को और स्पष्ट करेगा जो मेरे 15 साल पुरानी पोस्ट को लेकर बेतुका आरोप लगा रहे हैं। उन्होंने आगे कहा कि मुझे पता है कि ट्रोल फैक्ट्री कैसे काम करती है और मुझे विश्वास है कि ये लोग नहीं समझेंगे

पुरी का पलटवार

केंद्रीय मंत्री हरदीप पुरी ने भी थरूर को जवाब दिया है। हरदीप सिंह पुरी उस समय संयुक्त राष्ट्र में भारत के राजदूत थे, ने एक्स पर उस समय के विदेश राज्य मंत्री थरूर पर पलटवार करते हुए कहा कि थरूर ने ही डिनर के लिए आमंत्रित लोगों की लिस्ट बनाई थी, जिसमें सोरोस भी शामिल थे। पुरी ने शशि थरूर की बातों का जवाब देते हुए कहा कि मेरे मित्र डॉ.शशि थरूर,जो डीयू के सेंट स्टीफंस कॉलेज में छात्र थे। तब मैं शिक्षक संकाय का सदस्य था। मेरे संयुक्त राष्ट्र में भारत के राजदूत और स्थायी प्रतिनिधि के रूप में नियुक्त होने के कुछ ही समय बाद न्यूयॉर्क में विदेश राज्य मंत्री के रूप में पहुंचे थे। मैंने 11 अक्टूबर 2009 को एक ब्रीफिंग नाश्ते पर और फिर 12 अक्टूबर 2009 की शाम को रात के खाने पर उनकी और उनके साथी की मेजबानी की थी।

हरदीप सिंह पुरी ने लिखा,पीछे देखने पर यह साफ है कि नाम इसलिए शामिल किया गया क्योंकि संबंधित सज्जन राजीव गांधी फाउंडेशन के लाभार्थियों में से थे और राज्य मंत्री उनसे मिलने के इच्छुक थे। उन्होंने यह भी कहा कि थरूर ने पहले मई 2009 में सोरोस से मुलाकात की थी और बातचीत के बारे में ट्वीट किया था। पुरी ने थरूर पर कटाक्ष करते हुए कहा, छल करने की कलाओं में भाषा को अक्सर गौरवपूर्ण स्थान दिया जाता है। कांग्रेस पार्टी में मेरे कुछ मित्र अस्पष्टता में माहिर हैं, लेकिन वे अपने जोखिम पर ट्वीट करते हैं। केंद्रीय मंत्री ने कहा, चूंकि मैं उस समय शहर में कुछ ही महीने का था लेकिन डॉ थरूर ने न्यूयॉर्क में काफी समय बिताया था, इसलिए मैंने डिनर के लिए आमंत्रित लोगों की लिस्ट नहीं बनाई थी। यह लिस्ट मुझे मंत्री थरूर ने दी थी।

जॉर्ज सोरोस पीएम मोदी को लोकतंत्र विरोधी बता चुके

बता दें कि जॉर्ज सोरोस एक अमेरिकी अरबपति उद्योगपति है। जॉर्ज पर दुनिया के कई देशों की राजनीति और समाज को प्रभावित करने का एजेंडा चलाने का आरोप है। सोरोस की संस्था ‘ओपन सोसाइटी फाउंडेशन’ ने 1999 में पहली बार भारत में एंट्री की। 2014 में इसने भारत में दवा, न्याय व्यवस्था को बेहतर बनाने और विकलांग लोगों को मदद करने वाली संस्थाओं को फंड देना शुरू किया। 2016 में भारत सरकार ने देश में इस संस्था के जरिए होने वाली फंडिंग पर रोक लगा दी।

अगस्त 2023 में जॉर्ज का म्यूनिख सिक्योरिटी काउंसिल में दिया बयान बेहद चर्चा में रहा। जब उन्होंने कहा था कि भारत लोकतांत्रिक देश है, लेकिन प्रधानमंत्री मोदी लोकतांत्रिक नहीं हैं। उनके तेजी से बड़ा नेता बनने की अहम वजह मुस्लिमों के साथ की गई हिंसा है।

रूस से तेल खरीदकर भारत ने पूरी दुनिया की मदद की” हरदीप पुरी की आलोचकों को दो टूक

#indiahelpedthewholeworldbuyingoilfromrussiahardeeppuri 

भारत ने रूस से तेल खरीदकर दुनिया पर एक अहसान किया है। केंद्रीय पेट्रोलियम एवं प्राकृतिक गैस मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने ये बड़ा बयान दिया है।केंद्रीय पेट्रोलियम व प्राकृतिक गैस मंत्री हरदीप सिंह पुरी के अनुसार वैश्विक अनिश्चितताओं के बीच रूस से तेल खरीदने के भारत के फैसले से वैश्विक तेल कीमतों में संभावित उछाल को रोकने में मदद मिली है। पुरी के ये बयान सस्ता रूसी तेल खरीदने की आलोचना करने वालों को करारा जवाब है। 

भारत के पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने हाल ही में अबू धाबी में सीएनएन को दिए एक इंटरव्यू दिया।पुरी ने अपनी पोस्ट में एक वीडियो भी शेयर किया है, जिसमें वे इंटरव्यू देते नजर आ रहे हैं। इस इंटरव्यू में उन्होंने कहा कि भारत का रूस से तेल खरीदने का निर्णय वैश्विक अस्थिरता के बीच महत्वपूर्ण था। उन्होंने बताया कि अगर भारत ने रूस से तेल नहीं खरीदा होता, तो वैश्विक तेल की कीमतें 200 डॉलर प्रति बैरल तक पहुंच सकती थीं।

पुरी ने साफ किया है कि भारत ने रूस से तेल खरीदना जारी रखा है और ऐसा करने में कोई नियम नहीं तोड़ा है। उन्होंने उन लोगों को 'अज्ञानी' कहा जो भारत पर प्रतिबंध लगाने की बात करते हैं। मंत्री ने जोर देकर कहा कि रूसी तेल पर कोई प्रतिबंध नहीं है, बल्कि एक मूल्य प्राइस कैप लगा है। भारतीय कंपनियां इस सीमा का पालन कर रही हैं। उन्होंने आगे कहा कि कई यूरोपीय और एशियाई देश भी रूस से अरबों डॉलर का कच्चा तेल, डीजल, एलएनजी और अन्य जरूरी खनिज खरीद रहे हैं।

उन से एनर्जी खरीदेंगे, जो सबसे कम रेट ऑफर करेंगे-पुरी

पुरी ने आगे कहा कि 'हम लगातार उन सभी से एनर्जी खरीदेंगे, जो हमारी कंपनियों को सबसे कम रेट ऑफर कर रहे हैं। यह पीएम नरेंद्र मोदी की लीडरशिप का कॉन्फिडेंस है।' साथ ही उन्होंने कहा, 'हम हमारे उन 7 करोड़ नागरिकों के लिए एनर्जी की स्टेबल अवेलेबिलिटी, अफॉर्डेबिलिटी और सस्टेनेबिलिटी सुनिश्चित करेंगे, जो रोज पेट्रोल पंप जाते हैं। यह हमारी टॉप प्रायोरिटी है।'

पिछले 3 वर्षों से तेल की कीमतों में गिरावट

हरदीप सिंह पुरी ने कहा कि भारत अकेला ऐसा बड़ा ऑयल कंज्यूमर है, जहां पिछले 3 वर्षों से तेल की कीमतों में महत्वपूर्ण गिरावट आई है, जबकि दूसरे देशों में दाम आसमान पर पहुंच गये। दुनिया का तीसरा सबसे बड़ा तेल उपभोक्ता भारत अपनी 80% से अधिक तेल जरूरतों के लिए विदेशी खरीद पर निर्भर है।

सुनीता केजरीवाल को लेकर केंद्रीय मंत्री हरदीप पुरी ने आप पर साधा निशाना, बिहार की पूर्व मुख्यमंत्री राबड़ी देवी से की तुलना

#union_minister_hardeep_puri_on_sunita_kejriwal_compares_to_rabri_devi 

दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल इन दिनों दिल्ली शराब घोटाला केस में प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) की कस्टडी में हैं।केजरीवाल की गिरफ्तारी के बाद सार्वजनिक मंचों से दूरी बनाए रखने वाली उनकी पत्नी सुनीता केजरीवाल एक्टिव होती दिख रही हैं।सुनीता केजरीवाल अपने वीडियो संदेशों के जरिए लोगों से जुड़ने की कोशिश करती दिख रही हैं। ऐसे में इस पर सियासत शुरू हो गई है। दिल्‍ली के सीएम अरविंद केजरीवाल की पत्‍नी पर केंद्रीय पेट्रोलियम मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने निशाना साधा है। पुरी ने कहा कि आम आदमी पार्टी चीफ की पत्नी सुनीता केजरीवाल जल्द ही शीर्ष पद संभालने की तैयारी कर रही हैं। इस दौरान उन्होंने लालू यादव की पत्नी का उदाहरण देते हुए सुनीता केजरीवाल पर निशाना साधते हुए कहा कि राबड़ी देवी ने भी बिहार में यही किया था।

केंद्रीय मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने दिल्ली में बीजेपी के चुनाव कार्यालय के उद्घाटन के दौरान संवाददाता सम्मेलन में एक सवाल के जवाब में कहा कि आप जिस मैडम का नाम ले रहे हैं, वह शायद बिहार में राबड़ी देवी की तरह पद संभालने की तैयारी कर रही हैं।पत्रकारों से बातचीत करते हुए पेट्रोलियम मंत्री ने कहा, केजरीवाल की पत्नी केवल राजस्व सेवा में उनकी सहकर्मी नहीं थीं। उन्होंने सभी को किनारे कर दिया है। अब मैडम शायद शीर्ष पद के लिए तैयारी कर रही हैं।

बता दें कि केजरीवाल की गिरफ्तारी के बाद उनकी पत्नी सुनीता केजरीवाल लगातार अपने पति का संदेश लेकर जनता के सामने आ रही हैं।सुनीता केजरीवाल ने शुक्रवार को एक बार अपना वीडियो मैसेज जारी किया है। सुनीता केजरीवाल ने वीडियो जारी करते हुए कहा कि आज से आम आदमी पार्टी अपना नया अभियान शुरू कर रही है। सुनीता केजरीवाल ने कहा कि आज से हम केजरीवाल को आशीर्वाद मुहीम शुरू कर रहे हैं। दिल्ली वाले सीधे अपनी बातें अपने मुख्यमंत्री तक पहुंचा सकते हैं। सीएम की पत्नी ने एक नंबर जारी करते हुए कहा कि दिल्ली के लोग इस व्हाट्सप्प नंबर पर अपना आशीर्वाद और शुभकामनाएं यहां भेज सकते हैं।

भारत में मिला तेल का नया भंडार मिला, पेट्रोलियम मंत्री ने बताया पहली बार कहां निकला क्रूड ऑयल

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भारत में कच्चे तेल के भंडार का पता चला है। ओएनजीसी ने कृष्णा गोदावरी बेसिन में कच्चे तेल के खोज की घोषणा की है। केंद्रीय पेट्रोलियम मंत्री हरदीप सिंह पूरी ने जानकारी देते हुए बताया कि कृष्णा गोदावरी बेसिन में काकीनाडा के तट से 30 किलोमीटर दूर, पहली बार तेल निकाला गया। साल 2016-17 में शुरू हुई इस पर‍ियोजना से पहली बार 7 जनवरी को तेल न‍िकाला गया।

केंद्रीय मंत्री ने कहा कि वहां 26 कुओं में से 4 कुएं पहले से ही चालू हैं। उन्होंने कहा, “हमारे पास न केवल बहुत कम समय में गैस होगी। इसके अलावे मई और जून तक, हम प्रति दिन 45,000 बैरल का उत्पादन करने में सक्षम होने की उम्मीद करते हैं। यह उत्पादन हमारे देश के कुल कच्चे तेल के उत्पादन का 7 प्रतिशत और हमारे गैस उत्पादन का 7 प्रतिशत होगा।

ओएनजीसी ने एक्स पर एक पोस्ट में बताया कि कंपनी ने 7 जनवरी 2024 को कृष्णा गोदावरी डीप-वाटर ब्लॉक 98/2 (बंगाल की खाड़ी में) से पहली बार एफपीएसओ के लिए तेल निकालता शुरू किया जो परियोजना के चरण-2 के पूरा होने के करीब है। तेल और गैस उत्पादन के लिए चरण-3 पहले से ही चल रहा है और जून 2024 में इसके समाप्त होने की संभावना है। 98/2 परियोजना से ओएनजीसी के कुल तेल और गैस उत्पादन में क्रमशः 11 प्रतिशत और 15 प्रतिशत की वृद्धि होने की संभावना है।

आपको बता दें भारत दुन‍िया का तीसरा सबसे बड़ा तेल आयातक देश है। भारत अपनी घरेलू मांग को पूरा करने के लिए वैश्‍व‍िक बाजार के व‍िभ‍िन्‍न स्रोत से आयातित कच्चे तेल पर निर्भर है।

निज्जर हत्याकांड पर आरोपों को लेकर जयशंकर की कनाडा को दो टूक, बोले-सबूत दिए नहीं, जाँच कैसे करें?

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भारत के विदेश मंत्री एस जयशंकर ने लंदन में अपनी पाँच दिवसीय यात्रा के दौरान एक कार्यक्रम के दौरान कनाडा के मुद्दे पर बात की। उन्होंने आतंकी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या मामले में भारतीय एजेंटों पर लग रहे आरोपों पर कनाडा को फिर दो टूक जवाब दिया।विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने खालिस्तानी आतंकी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या को लेकर लगाए गए आरोपों पर कनाडा से एक बार फिर सबूत की मांग की है। उन्होंने कहा कि भारत सरकार निज्जर की हत्या की जांच की जरूरत से इनकार नहीं कर रही है लेकिन कनाडा को अपने उन आरोपों के समर्थन में सबूत पेश करना चाहिए कि मर्डर में भारतीय एजेंट्स की भूमिका है। 

विदेश मंत्री एस जयशंकर ने लंदन में कहा कि कनाडा में, हमें लगता है कि कनाडाई राजनीति ने हिंसक और अतिवादी राजनीतिक विचारों को जगह दी है जो हिंसक तरीकों सहित भारत से अलगाववाद की वकालत करते हैं। इन लोगों को कनाडा की राजनीति में शामिल किया गया है। उन्हें अपने विचार व्यक्त करने की आजादी दी गई है।एस जयशंकर ने आगे कहा कि, बोलने की आजादी और अभिव्यक्ति की आजादी एक निश्चित जिम्मेदारी के साथ आती है। उन स्वतंत्रताओं का दुरुपयोग और राजनीतिक उद्देश्यों के लिए उस दुरुपयोग को बर्दाश्त करना बहुत गलत होगा। देखिए, यदि आपके पास ऐसा आरोप लगाने का कोई कारण है, तो कृपया हमारे साथ सबूत साझा करें। हम जाँच से इनकार नहीं कर रहे है। मगर उन्होंने अभी तक सबूत ही नहीं दिए।

बता दें कि कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो देश की संसद में बयान देकर भारत सरकार पर आरोप लगाया था कि निज्जर की हत्या में भारतीय एजेंटों का हाथ है। इसके बाद से दोनों देशों के बीच तनाव पैदा हो गया। हालांकि, भारत ने ट्रूडो के आरोपों को बेतुका और प्रेरित बताकर सिरे से खारिज कर दिया है।कनाडा के ब्रिटिश कोलंबिया में 18 जून को खालिस्तानी आतंकी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या कर दी गई थी।बता दें कि साल 2020 में भारत द्वारा हरदीप सिंह निज्जर को आतंकी घोषित किया गया था।

भारत-कनाडा विवाद पर अमेरिका की अहम टिप्पणी, जानें ओटावा के नरम पड़ते तेवर के बीच यूएस ने क्या कहा?

# hardeep_singh_nijjar_murder_case_america_is_showing_closeness_to_canada 

खालिस्तान गैंगस्टर हरदीप सिंह निज्जर की हत्या को लेकर भारत और कनाडा के बीच चल रहे विवाद पर अमेरिका ने एक बार फिर बयान दिया है। कनाडा के पीएम जस्टिन ट्रूडो ने कनाडाई संसद में बिना किसी साक्ष्य के भारत सरकार पर आतंकी निज्जर की हत्या का आरोप लगाया। भारत ने कनाडा के पीएम को उनके गैर जिम्मेदाराना बयान पर करारा जवाब दिया है। इसी बीच कनाडा से करीबी दिखाते हुए अमेरिका ने भारत से कहा है कि वह कनाडा के साथ निज्जर हत्याकांड की जांच में सहयोग करे। हालांकि शुरुआत में अमेरिका ने ट्रूडो के बयान को नकारते हुए यही कहा था कि जांच पूरा होने तक आरोप लगाना सही नहीं। अब एक बार फिर कनाडा से करीबी दिखाते हुए अमेरिका ने भारत से जांच में सहयोग देने की बात कही है। 

अमेरिका के विदेश विभाग के प्रवक्ता मैथ्यू मिलर ने कहा, हम अपने कनाडाई सहयोगियों के साथ निकट समन्वय में हैं। मिलर ने कहा, हमने भारत सरकार से बातचीत की है और उनसे कनाडा की जांच में सहयोग करने का आग्रह किया है।मैथ्यू मिलर ने सोमवार को अपने प्रेस कॉन्फ्रेंस में एक पाकिस्तानी पत्रकार के सवाल के जवाब में कहा,उन्होंने तब भी स्पष्ट किया था और अब मैं इसे दोहरा रहा हूं कि हम इस मामले पर कनाडा में अपने सहयोगियों के साथ निकटता से समन्वय कर रहे हैं। उन्होंने कहा, हमने कई मौकों पर भारत सरकार से बातचीत में कनाडा की जांच में सहयोग करने का आग्रह किया है। (अमेरिका के) विदेश मंत्री को शुक्रवार को अपने भारतीय समकक्ष के साथ अपनी बैठक में ऐसा करने का अवसर मिला।

यह पूछे जाने पर कि क्या भारत कनाडा के साथ सहयोग करने के लिए सहमत हो गया है, इस पर मिलर ने कहा कि इसका जवाब नई दिल्ली को देना है। उन्होंने कहा, ‘मैं चाहता हूं कि भारत सरकार इस पर स्वयं अपनी बात रखे। मैं अमेरिका सरकार की ओर से बात करूंगा और हम सहयोग का आग्रह करते हैं।

बता दें कि इसी साल 18 जून को कनाडा के ब्रिटिश कोलंबिया में हरदीप सिंह निज्जर की गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। 2020 में भारत ने निज्जर को आतंकी घोषित किया था। 18 सितंबर को पीएम जस्टिन ट्रूडो ने भारत पर इसका आरोप लगाया था। कनाडा की संसद में पीएम ट्रूडो ने कहा था कि निज्जर की हत्या के पीछे भारत का हाथ हो सकता है। भारत ने आरोपों को सिरे से खारिज कर दिया था। भारत ने कहा था कि कनाडा का बयान राजनीति से प्रेरित है। भारत ने पीएम ट्रूडो के आरोपों को बेतुका बताया था। ट्रूडो के इस बयान के बाद दोनों देशों के बीच तनाव बढ़ गया। भारत और कनाडा के रिश्तों में खटास आ गई है।

खालिस्तानी आतंकी निज्जर की हत्या से जुड़ा एक वीडियो आया सामने, दो गाड़ियों में सवार दो लोगों ने बरसायी थी 50 गोलियां

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कनाडा में खालिस्तानी आतंकी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या के मामले में बड़ा खुलासा हुआ है। इस घटना से जुड़ा सीसीटीवी वीडियो सामने आया है।बता दें कि इस साल 18 जून को निज्जर की कनाडा के ब्रिटिश कोलंबिया प्रांत के सरे इलाके में एक गुरुद्वारे की पार्किंग में बंदूकधारियों ने गोली मार कर हत्या कर दी थी।निज्जर भारत से अलग एक खालिस्तानी देश की मांग करता आ रहा था। जुलाई 2020 में भारत ने उसे 'आतंकवादी' घोषित किया था।

अमेरिकी अखबार द वॉशिंगटन पोस्ट ने वीडियो फुटेज के हवाले से जो रिपोर्ट जारी की है।वाशिंगटन पोस्ट की ओर से जारी एक रिपोर्ट में घटना के प्रत्यक्षदर्शियों से बातचीत को साझा किया गया है। सीसीटीवी वीडियो और प्रत्यक्षदर्शियों से बात के अनुसार निज्जर की हत्या में कम से कम छह हमलावर दो वाहनों से आए थे। अमेरिकी अखबार ने कहा कि उसकी ओर से समीक्षा की गई 90 सेकंड की वीडियो रिकॉर्डिंग में निज्जर के ग्रे पिकअप ट्रक और एक सफेद सेडान को गुरुद्वारे की पार्किंग में एक साथ चलते हुए देखा गया है।

निज्‍जर की हत्या में कम से कम छह लोग शामिल

अखबार के मुताबिक कैमरे के वीडियो से पता चलता है कि एक सेडान ने कनाडा में रहने वाले सिख हरदीप सिंह निज्जर के ट्रक को रोका था। इसके बाद दो बंदूकधारियों ने निज्‍जर को मार डाला। अखबार के मुताबिक इससे पता लगता है कि निज्जर को मारने के लिए कनाडा के अधिकारियों की तरफ से जो कुछ भी बताया गया है कि उससे भी ज्‍यादा जटिल ऑपरेशन का खुलासा हुआ है। अखबार ने कुछ प्रत्यक्षदर्शियों के हवाले से लिखा है कि निज्‍जर की हत्या में कम से कम छह लोग शामिल थे।वीडियो में नजर आ रहा है कि निज्जर का ग्रे रंग का ट्रक गुरुद्वारे की पार्किंग से निकल रहा है। एक सफेद सेडान स्क्रीन पर नजर आती है और वह भी ट्रक की स्‍पीड से आगे बढ़ती है। इसके बाद वह ट्रक को ओवरटेक करती है और फिर सेडान ट्रक के साथ-साथ चलती है। जैसे ही वे बाहर निकलने के करीब आते हैं, सेडान फिर निज्जर के ट्रक से आगे निकल जाती है। कार गेट पर रुकती है और ट्रक फंस जाता है। इस बीच हुड वाली स्वेटशर्ट पहने दो आदमी आगे बढ़ते हैं और सेडान के दूर हटते ही ड्राइवर की सीट पर बंदूक तान देते हैं। इसी दौरान सामने खड़ी सेडान पार्किंग से बाहर निकल जाती है और कैमरे की नजर से दूर हो जाती है। इसके बाद गोलीबारी करने वाले दोनों लोग भी एक ही दिशा में भागते देखे गए।

हमलावरों ने लगभग 50 गोलियां चलाईं, निज्जर को 34 गोलियां लगी

कनाडा के स्थानीय सिख समुदाय के सदस्यों का कहना है कि जांचकर्ताओं ने उन्हें बताया है कि हमलावरों ने लगभग 50 गोलियां चलाईं थी, जिनमें से निज्जर को 34 गोलियां लगी थी। हर जगह खून और टूटा हुआ शीशा जमीन पर पड़ा था। जमीन गोलियों से छलनी थी। उसी दौरान गुरुमीत सिंह तूर नाम के एक अन्य गुरुद्वारा नेता अपने पिकअप ट्रक में आते हैं और निज्जर को गाड़ी में बिठाकर बंदूकधारियों का पीछा करने के लिए निकल पड़ते हैं।

सिख वेश-भूषा में थे हमलावर

रिपोर्ट में गुरुद्वारे के एक स्वयंसेवक भूपिंदरजीत सिंह का भी हवाला दिया गया है। वे निज्जर के ट्रक तक पहुंचने वाले पहले गवाह थे। सिंह ने ड्राइवर साइड का दरवाजा खोला और निज्जर के कंधों को पकड़ लिया। सिंह के हवाले से कहा गया, ऐसा लग रहा था कि निज्जर की सांसें नहीं चल रही थी। गुरुद्वारा समिति के एक अन्य सदस्य मलकीत सिंह ने बताया कि उन्होंने दो लोगों को पड़ोस के कौगर क्रीक पार्क की ओर भागते देखा। उसने उनका पीछा किया। उन्होंने दावा किया कि हमलावरों ने 'सिख गेट-अप' पहन रखा था, उनके सिर पर छोटे पघों पर हुडी खींची हुई थी और उनके 'दाढ़ी वाले चेहरे' पर मास्क लगा हुआ था।

निज्जर हत्याकांड मामले में ट्रूडो ने अब कही नई बात, बोले-कनाडा ने भारत को खुफिया इनपुट दिए

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भारत-कनाडा के बीच बिगड़ते संबंधों के बीच प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो ने निज्जर हत्याकांड को लेकर अब नया दांव चला है। कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो ने कहा है कि उन्होंने भारत के साथ पहले ही जानकारी साझा की थी।जस्टिन ट्रूडो ने शुक्रवार को कहा कि कनाडा ने कुछ हफ्ते पहले हरदीप सिंह निज्जर की हत्या से जुड़े सबूत भारत से साझा किए हैं। इसमें वह सबूत हैं, जो दिखाता है कि हत्या में भारतीय एजेंट्स शामिल हैं।

ट्रूडो ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा, 'कनाडा ने उन विश्वसनीय आरोपों के सबूत को साझा किया है, जिनके बारे में मैंने सोमवार को बात की थी। हमने कई सप्ताह पहले ही ऐसा किया था। हमें उम्मीद है कि भारत हमारे साथ काम करेगा, ताकि इस गंभीर मामले की तह तक पहुंचा जा सके।'ये तीसरी बार है जब ट्रूडो ने सार्वजनिक तौर पर इस मुद्दे पर बात की है। हालांकि अब तक भारत कहता रहा है कि कनाडा ने अपने आरोपों के समर्थन में अब तक कोई सबूत पेश नहीं किए। 

इससे पहले जस्टिन ट्रूडो ने सोमवार को बिना किसी सबूत पेश किए कहा था कि जून महीने में हुई खालिस्तानी आतंकी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या के मामले में भारत सरकार के एजेंटों के शामिल होने के विश्वसनीय सबूत हैं।उन्होंने कहा था, कनाडा की एजेंसियों ने पुख्ता तौर पर पता किया है कि कनाडा की ज़मीन पर कनाडाई नागरिक की हत्या के पीछे भारत सरकार का हाथ हो सकता है। हमारी ज़मीन पर हुई हत्या के पीछे विदेशी सरकार का होना अस्वीकार्य है और ये हमारी संप्रभुता का उल्लंघन है। 

इस बयान के बाद कनाडा ने भारत के शीर्ष राजनयिक को निष्कासित कर दिया। जवाबी कार्रवाई में भारत ने भी कनाडा के शीर्ष राजनयिक को पांच दिनों के अंदर भारत छोड़ने का आदेश दे दिया था। साथ ही कनाडा में भारतीय दूतावास ने वीज़ा सेवाओं पर ये कहते हुए रोक लगा दी कि ऑपरेशनल वजहों से फिलहाल ये सेवाएं स्थगित कर दी गई हैं।इसके बाद भारत ने भी कनाडा में रहने वाले अपने नागरिकों के लिए एडवाइजरी जारी की। इसमें कहा गया कि भारत विरोधी गतिविधियों के चलते वहां रहने वाले भारतीय काफी सतर्क रहें।बता दें कि वहां भारतीय लोगों को धमकी जा रही है।

कनाडा में खालिस्तानी आतंकी हरदीप सिंह निज्जर की गोली मारकर हत्या, भारत के वांडेट लिस्ट में था नाम

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खालिस्तानी आतंकी हरदीप सिंह निज्जर की कनाडा में गोली मारकर हत्या कर दी गई। निज्जर आतंकी संगठन खालिस्तान टाइगर फोर्स (केटीएफ) का चीफ था। वह कनाडा में रहकर लंबे समय से पंजाब में खालिस्तानी मूवमेंट को हवा दे रहा था। बता दें, एनआईए ने कुख्यात आतंकवादी संगठन खालिस्तान टाइगर फोर्स के मुखिया हरदीप सिंह निज्जर पर 10 लाख का इनाम घोषित किया हुआ था। ये इनाम जालंधर में एक पुजारी की हत्या के मामले में रखा गया था। भारत सरकार ने उसे आतंकी घोषित किया था।

सोमवार को कनाडा के एसएफजे प्रमुख और खालिस्तानी आतंकी हरदीप सिंह निज्जर की गुरु नानक सिख गुरुद्वारा सरे में गोली मारकर हत्या कर दी गई है। जानकारी के अनुसार जिस गुरुद्वारे के आगे निज्जर की हत्या की गई है वह उसी गुरुद्वारे का अध्यक्ष था। गुरु नानक सिख गुरुद्वारे में दो अज्ञात बंदूकधारियों ने निज्जर को गोली मारकर इस वारदात को अंजाम दिया।

कनाडा में बैठकर भारत विरोधी गतिविधियां चला रहा था

निज्जर कनाडा में सिख फॉर जस्टिस (एसएफजे) का प्रमुख था खालिस्तानी टाइगर फोर्स का मुखिया भी था। वो कनाडा में बैठकर भारत के खिलाफ देश विरोधी गतिविधियों को अंजाम दे रहा था। वह आतंकी संगठन सिख फॉर जस्टिस के मुखी गुरपतवंत सिंह पन्नू का करीबी भी था। 

हरदीप सिंह निज्जर पर 10 लाख रुपये का इनाम घोषित किया था

सितंबर 2020 में केंद्रीय गृह मंत्रालय ने हरदीप निज्जर को आतंकवादी घोषित कर दिया था। इसके बाद निज्जर की जालंधर के भार सिंह पुरा गांव में संपत्तियां भी कुर्क की थी। इसी गांव में निज्जर ने पुजारी का कत्ल कराया था। इसके जरिए वह पंजाब में धार्मिक उन्माद फैलाने की फिराक में था। जिसके बाद राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एआईए) ने भगोड़े खालिस्तानी आतंकवादी हरदीप सिंह निज्जर पर 10 लाख रुपये का इनाम घोषित किया था।

निज्जर के संगठन को 4 महीने पहले आतंकी करार दिया था

केंद्रीय गृह मंत्रालय ने 4 महीने पहले निज्जर के संगठन केटीएफ को आतंकी संगठन करार दिया था। गृह मंत्रालय ने कहा था- खालिस्तान टाइगर फोर्स कट्‌टरपंथी संगठन है। जिसका मकसद पंजाब में फिर आतंकवाद फैलाना है। पंजाब में टारगेट किलिंग के पीछे भी इस संगठन का हाथ है। गृह मंत्रालय का कहना है कि ये संगठन भारत की क्षेत्रीय अखंडता, एकता, राष्ट्रीय सुरक्षा और संप्रभुता को चुनौती देता है।

*ट्रूडो के इस्तीफे के साथ ही बदल गया कनाडा? निज्जर मर्डर केस के चारों आरोपियों को जमानत

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भारत और कनाडा के रिश्तों के बीच खटास की सबसे बड़ी वजह रही खालिस्तानी आतंकी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या का मामला। हरदीप सिंह निज्जर हत्याकांड को लेकर कनाडा के प्रधानमंत्री ने भारत पर गंभीर आरोप लगाए थे। जिसके बाद दोनों देशों के संबंध सबसे खराब स्तर पर पहुंच गए। इस बीच इस मामले में एक नया मोड आया है। निजजर की हत्या मामले में कनाडा में गिरफ्तार किए गए सभी चार भारतीयों को कनाडा की कोर्ट ने जमानत दे दी है। इनके नाम करण बराड़, अमनदीप सिंह, कमलप्रीत सिंह और करणप्रीत सिंह हैं। इनपर प्रथम डिग्री हत्या और हत्या की साजिश रचने का आरोप लगाया गया था। ये सब तब हुआ है जब ट्रूडो को प्रधानमंत्री पद से इस्तीफा देना पड़ा है।

खालिस्तानी आतंकी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या के आरोपी बनाए गए चार भारतीय नागरिकों को कनाडा के सुप्रीम कोर्ट ने जमानत पर रिहा कर दिया है। कनाडाई सुप्रीम कोर्ट ने इस मामले में कनाडाई पुलिस को पर्याप्त सबूत पेश नहीं कर पाने के चलते फटकार भी लगाई है। अब इस मामले की सुनवाई 11 फरवरी को निचली अदालत में होगी, जहां नवंबर, 2024 में पुलिस ने इन चारों के खिलाफ चार्जशीट दाखिल की थी।

पुलिस अदालत में पेश नहीं हुई

दरअसल, इस केस में कनाडा पुलिस की भूमिका सवालों के घेरे में आ गई है. निचली अदालत में सबूत पेश करने में असफल रहने के कारण पुलिस अदालत में पेश नहीं हुई. सुप्रीम कोर्ट ने पुलिस की इस निष्क्रियता को देखते हुए चारों आरोपियों को जमानत पर रिहा कर दिया।

कौन हैं चारों आरोपी?

कनाडा ने निज्जर मर्डर केस में साल 2024 में मई के महीने में चार भारतीयों को अरेस्ट किया गया था। आईएचआईटी ने 3 मई को हरदीप सिंह निज्जर की हत्या के लिए तीन भारतीय नागरिक, करण बराड़ (22), कमलप्रीत सिंह (22) और करणप्रीत सिंह (28) को गिरफ्तार किया था। तीनों व्यक्ति एडमोंटन में रहने वाले भारतीय नागरिक थे और उन पर फर्स्ट डिग्री की हत्या और हत्या की साजिश रचने का आरोप लगाया गया था।

इसी के बाद आरोपी अमरदीप सिंह (22) को भी इस केस में अरेस्ट किया गया था। अमरदीप सिंह पर फर्स्ट-डिग्री हत्या और हत्या की साजिश रचने का आरोप लगाया गया था। रॉयल कैनेडियन माउंटेड पुलिस (आरसीएमपी) की इंटीग्रेटेड होमिसाइड इन्वेस्टिगेशन टीम (आईएचआईटी) ने कहा था कि अमरदीप सिंह को निज्जर की हत्या में उनके रोल के लिए 11 मई को गिरफ्तार किया गया था।

क्या था हरदीप सिंह निज्जर मर्डर केस?

खालिस्तानी आतंकी हरदीप सिंह निज्जर की 18 जून साल 2023 में कनाडा के सरे में एक गुरुद्वारे के बाहर गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। वह भारत में वांटेड घोषित था। निज्जर साल 1997 में कनाडा भाग गया था और उसके खिलाफ भारत में दर्जन भर से ज्यादा कत्ल और आतंकी गतिविधियों में शामिल होने को लेकर केस दर्ज हैं। इसके बावजूद कनाडा की सरकार ने निज्जर के खिलाफ कोई एक्शन नहीं लिया था। साल 2023 में निज्जर की हुई हत्या के बाद भारत और कनाडा के बीच एक नया विवाद पैदा हुआ।

क्या भारत से संबंध सुधारने की कवायद शुरू?

बता दें कि कनाडाई प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो ने अपनी संसद में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली भारत सरकार पर निज्जर की हत्या का आरोप लगाकर तहलका मचा दिया था। सिख वोटों को अपने पक्ष में जुटाने के लिए ट्रूडो इस आरोप पर अड़े रहे, लेकिन कोई सबूत पेश नहीं कर सके। इसके चलते भारत-कनाडा के संबंध लगातार खराब होते चले गए। हालांकि ट्रूडो को इससे कोई लाभ नहीं हुआ है और उन्हें अपने पद से इस्तीफा देना पड़ा है। उनके इस्तीफा देते ही चारों भारतीय आरोपियों को जमानत पर रिहा करने का फैसला आ गया है। इससे यह चर्चा शुरू हो गई है कि क्या ट्रूडो के बाद कनाडा में भारत से संबंध सुधारने की कवायद शुरू हो गई है।

जॉर्ज सोरोस के मुद्दे पर भिड़े हरदीप पुरी और शशि थरूर, सोरोस को लेकर 2009 के पोस्ट पर छिड़ी “जंग”

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अमेरिकी अरबपति जॉर्ज सोरोस एक बार फिर भारतीय राजनीति में एक अहम मुद्दा बनते दिख रहे हैं। जॉर्ज सोरोस और कांग्रेस से उससे संबंधों पर भारतीय जनता पार्टी अक्सर घेरती है। इस बार कांग्रेस ने सोरोस के बहाने बीजेपी पर ही निशाना साधा है। कांग्रेस सांसद शशि थरूर और केंद्रीय मंत्री हरदीप पुरी के बीच जॉर्ज सोरोस को लेकर सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर जुबान जंग छिड़ी हुई है।

सांसद शशि थरूर ने केंद्रीय मंत्री हरदीप सिंह पुरी पर आरोप लगाया कि उनकी जॉर्ज सोरोस से न्यूयॉर्क में मुलाकात हुई थी। थरूर का आरोप है कि हरदीप पुरी को सोरोस ने डिनर के लिए न्योता भी दिया था। अपने उपर लगे आरोपों पर अब मोदी सरकार के मंत्री ने जवाब दिया है। पुरी ने थरूर को जवाब देते हुए कहा कि थरूर ने ही सोरोस को डिनर पर बुलाया था। अब सोरोस के मुद्दे पर दोनों नेताओं के बीच एक्स वॉर शुरू हो गया है।

दरअसल, 8 दिसंबर को भाजपा ने गांधी परिवार पर अमेरिकी उद्योगपति जॉर्ज सोरोस के फाउंडेशन से फंड लेने का आरोप लगाया था। साथ ही कहा था कि भारत विरोधी सोरोस और कांग्रेस मिलकर भारत की इकोनॉमी तबाह करना चाहते हैं।

इसके बाद एक्स पर सांसद शशि थरूर का 2009 का पोस्ट वायरल हुआ। कर्नाटक के एक बीजेपी कार्यकर्ता ने थरूर की 2009 की एक पुरानी पोस्ट दिखाई। जिसमें उन्होंने लिखा था- पूराने मित्र सोरोस से मुलाकात हुई। वे एक निवेशक ही नहीं, बल्कि दुनिया की चिंता करने वाले नागरिक भी हैं।

कैसे शुरू हुआ विवाद?

बीजेपी के कार्यकर्ता ने उस पोस्ट पर रिपोस्ट करते हुए सवाल किया कि इस एक्स पोस्ट के बारे में आपका क्या ख्याल है थरूर?

थरूर ने अपनी इसी पोस्ट का जवाब देते हुए 15 दिसंबर को कहा- ये मुलाकात हरदीप पुरी (केंद्रीय मंत्री) के घर हुई थी। वे सिर्फ सोशल सेंस में मेरे दोस्त थे। मैंने उनसे एक रुपए भी नहीं लिया। इस पोस्ट के बाद मैं एक बार और उनसे मिला था। यह मुलाकात हरदीप पुरी के घर डिनर पार्टी में हुई थी। थरूर ने आगे कहा कि मेरे पुराने रिश्ते के कभी कोई राजनीतिक अर्थ नहीं थे। मुझे उम्मीद है कि यह उन लोगों के लिए इस मामले को और स्पष्ट करेगा जो मेरे 15 साल पुरानी पोस्ट को लेकर बेतुका आरोप लगा रहे हैं। उन्होंने आगे कहा कि मुझे पता है कि ट्रोल फैक्ट्री कैसे काम करती है और मुझे विश्वास है कि ये लोग नहीं समझेंगे

पुरी का पलटवार

केंद्रीय मंत्री हरदीप पुरी ने भी थरूर को जवाब दिया है। हरदीप सिंह पुरी उस समय संयुक्त राष्ट्र में भारत के राजदूत थे, ने एक्स पर उस समय के विदेश राज्य मंत्री थरूर पर पलटवार करते हुए कहा कि थरूर ने ही डिनर के लिए आमंत्रित लोगों की लिस्ट बनाई थी, जिसमें सोरोस भी शामिल थे। पुरी ने शशि थरूर की बातों का जवाब देते हुए कहा कि मेरे मित्र डॉ.शशि थरूर,जो डीयू के सेंट स्टीफंस कॉलेज में छात्र थे। तब मैं शिक्षक संकाय का सदस्य था। मेरे संयुक्त राष्ट्र में भारत के राजदूत और स्थायी प्रतिनिधि के रूप में नियुक्त होने के कुछ ही समय बाद न्यूयॉर्क में विदेश राज्य मंत्री के रूप में पहुंचे थे। मैंने 11 अक्टूबर 2009 को एक ब्रीफिंग नाश्ते पर और फिर 12 अक्टूबर 2009 की शाम को रात के खाने पर उनकी और उनके साथी की मेजबानी की थी।

हरदीप सिंह पुरी ने लिखा,पीछे देखने पर यह साफ है कि नाम इसलिए शामिल किया गया क्योंकि संबंधित सज्जन राजीव गांधी फाउंडेशन के लाभार्थियों में से थे और राज्य मंत्री उनसे मिलने के इच्छुक थे। उन्होंने यह भी कहा कि थरूर ने पहले मई 2009 में सोरोस से मुलाकात की थी और बातचीत के बारे में ट्वीट किया था। पुरी ने थरूर पर कटाक्ष करते हुए कहा, छल करने की कलाओं में भाषा को अक्सर गौरवपूर्ण स्थान दिया जाता है। कांग्रेस पार्टी में मेरे कुछ मित्र अस्पष्टता में माहिर हैं, लेकिन वे अपने जोखिम पर ट्वीट करते हैं। केंद्रीय मंत्री ने कहा, चूंकि मैं उस समय शहर में कुछ ही महीने का था लेकिन डॉ थरूर ने न्यूयॉर्क में काफी समय बिताया था, इसलिए मैंने डिनर के लिए आमंत्रित लोगों की लिस्ट नहीं बनाई थी। यह लिस्ट मुझे मंत्री थरूर ने दी थी।

जॉर्ज सोरोस पीएम मोदी को लोकतंत्र विरोधी बता चुके

बता दें कि जॉर्ज सोरोस एक अमेरिकी अरबपति उद्योगपति है। जॉर्ज पर दुनिया के कई देशों की राजनीति और समाज को प्रभावित करने का एजेंडा चलाने का आरोप है। सोरोस की संस्था ‘ओपन सोसाइटी फाउंडेशन’ ने 1999 में पहली बार भारत में एंट्री की। 2014 में इसने भारत में दवा, न्याय व्यवस्था को बेहतर बनाने और विकलांग लोगों को मदद करने वाली संस्थाओं को फंड देना शुरू किया। 2016 में भारत सरकार ने देश में इस संस्था के जरिए होने वाली फंडिंग पर रोक लगा दी।

अगस्त 2023 में जॉर्ज का म्यूनिख सिक्योरिटी काउंसिल में दिया बयान बेहद चर्चा में रहा। जब उन्होंने कहा था कि भारत लोकतांत्रिक देश है, लेकिन प्रधानमंत्री मोदी लोकतांत्रिक नहीं हैं। उनके तेजी से बड़ा नेता बनने की अहम वजह मुस्लिमों के साथ की गई हिंसा है।

रूस से तेल खरीदकर भारत ने पूरी दुनिया की मदद की” हरदीप पुरी की आलोचकों को दो टूक

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भारत ने रूस से तेल खरीदकर दुनिया पर एक अहसान किया है। केंद्रीय पेट्रोलियम एवं प्राकृतिक गैस मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने ये बड़ा बयान दिया है।केंद्रीय पेट्रोलियम व प्राकृतिक गैस मंत्री हरदीप सिंह पुरी के अनुसार वैश्विक अनिश्चितताओं के बीच रूस से तेल खरीदने के भारत के फैसले से वैश्विक तेल कीमतों में संभावित उछाल को रोकने में मदद मिली है। पुरी के ये बयान सस्ता रूसी तेल खरीदने की आलोचना करने वालों को करारा जवाब है। 

भारत के पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने हाल ही में अबू धाबी में सीएनएन को दिए एक इंटरव्यू दिया।पुरी ने अपनी पोस्ट में एक वीडियो भी शेयर किया है, जिसमें वे इंटरव्यू देते नजर आ रहे हैं। इस इंटरव्यू में उन्होंने कहा कि भारत का रूस से तेल खरीदने का निर्णय वैश्विक अस्थिरता के बीच महत्वपूर्ण था। उन्होंने बताया कि अगर भारत ने रूस से तेल नहीं खरीदा होता, तो वैश्विक तेल की कीमतें 200 डॉलर प्रति बैरल तक पहुंच सकती थीं।

पुरी ने साफ किया है कि भारत ने रूस से तेल खरीदना जारी रखा है और ऐसा करने में कोई नियम नहीं तोड़ा है। उन्होंने उन लोगों को 'अज्ञानी' कहा जो भारत पर प्रतिबंध लगाने की बात करते हैं। मंत्री ने जोर देकर कहा कि रूसी तेल पर कोई प्रतिबंध नहीं है, बल्कि एक मूल्य प्राइस कैप लगा है। भारतीय कंपनियां इस सीमा का पालन कर रही हैं। उन्होंने आगे कहा कि कई यूरोपीय और एशियाई देश भी रूस से अरबों डॉलर का कच्चा तेल, डीजल, एलएनजी और अन्य जरूरी खनिज खरीद रहे हैं।

उन से एनर्जी खरीदेंगे, जो सबसे कम रेट ऑफर करेंगे-पुरी

पुरी ने आगे कहा कि 'हम लगातार उन सभी से एनर्जी खरीदेंगे, जो हमारी कंपनियों को सबसे कम रेट ऑफर कर रहे हैं। यह पीएम नरेंद्र मोदी की लीडरशिप का कॉन्फिडेंस है।' साथ ही उन्होंने कहा, 'हम हमारे उन 7 करोड़ नागरिकों के लिए एनर्जी की स्टेबल अवेलेबिलिटी, अफॉर्डेबिलिटी और सस्टेनेबिलिटी सुनिश्चित करेंगे, जो रोज पेट्रोल पंप जाते हैं। यह हमारी टॉप प्रायोरिटी है।'

पिछले 3 वर्षों से तेल की कीमतों में गिरावट

हरदीप सिंह पुरी ने कहा कि भारत अकेला ऐसा बड़ा ऑयल कंज्यूमर है, जहां पिछले 3 वर्षों से तेल की कीमतों में महत्वपूर्ण गिरावट आई है, जबकि दूसरे देशों में दाम आसमान पर पहुंच गये। दुनिया का तीसरा सबसे बड़ा तेल उपभोक्ता भारत अपनी 80% से अधिक तेल जरूरतों के लिए विदेशी खरीद पर निर्भर है।

सुनीता केजरीवाल को लेकर केंद्रीय मंत्री हरदीप पुरी ने आप पर साधा निशाना, बिहार की पूर्व मुख्यमंत्री राबड़ी देवी से की तुलना

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दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल इन दिनों दिल्ली शराब घोटाला केस में प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) की कस्टडी में हैं।केजरीवाल की गिरफ्तारी के बाद सार्वजनिक मंचों से दूरी बनाए रखने वाली उनकी पत्नी सुनीता केजरीवाल एक्टिव होती दिख रही हैं।सुनीता केजरीवाल अपने वीडियो संदेशों के जरिए लोगों से जुड़ने की कोशिश करती दिख रही हैं। ऐसे में इस पर सियासत शुरू हो गई है। दिल्‍ली के सीएम अरविंद केजरीवाल की पत्‍नी पर केंद्रीय पेट्रोलियम मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने निशाना साधा है। पुरी ने कहा कि आम आदमी पार्टी चीफ की पत्नी सुनीता केजरीवाल जल्द ही शीर्ष पद संभालने की तैयारी कर रही हैं। इस दौरान उन्होंने लालू यादव की पत्नी का उदाहरण देते हुए सुनीता केजरीवाल पर निशाना साधते हुए कहा कि राबड़ी देवी ने भी बिहार में यही किया था।

केंद्रीय मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने दिल्ली में बीजेपी के चुनाव कार्यालय के उद्घाटन के दौरान संवाददाता सम्मेलन में एक सवाल के जवाब में कहा कि आप जिस मैडम का नाम ले रहे हैं, वह शायद बिहार में राबड़ी देवी की तरह पद संभालने की तैयारी कर रही हैं।पत्रकारों से बातचीत करते हुए पेट्रोलियम मंत्री ने कहा, केजरीवाल की पत्नी केवल राजस्व सेवा में उनकी सहकर्मी नहीं थीं। उन्होंने सभी को किनारे कर दिया है। अब मैडम शायद शीर्ष पद के लिए तैयारी कर रही हैं।

बता दें कि केजरीवाल की गिरफ्तारी के बाद उनकी पत्नी सुनीता केजरीवाल लगातार अपने पति का संदेश लेकर जनता के सामने आ रही हैं।सुनीता केजरीवाल ने शुक्रवार को एक बार अपना वीडियो मैसेज जारी किया है। सुनीता केजरीवाल ने वीडियो जारी करते हुए कहा कि आज से आम आदमी पार्टी अपना नया अभियान शुरू कर रही है। सुनीता केजरीवाल ने कहा कि आज से हम केजरीवाल को आशीर्वाद मुहीम शुरू कर रहे हैं। दिल्ली वाले सीधे अपनी बातें अपने मुख्यमंत्री तक पहुंचा सकते हैं। सीएम की पत्नी ने एक नंबर जारी करते हुए कहा कि दिल्ली के लोग इस व्हाट्सप्प नंबर पर अपना आशीर्वाद और शुभकामनाएं यहां भेज सकते हैं।

भारत में मिला तेल का नया भंडार मिला, पेट्रोलियम मंत्री ने बताया पहली बार कहां निकला क्रूड ऑयल

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भारत में कच्चे तेल के भंडार का पता चला है। ओएनजीसी ने कृष्णा गोदावरी बेसिन में कच्चे तेल के खोज की घोषणा की है। केंद्रीय पेट्रोलियम मंत्री हरदीप सिंह पूरी ने जानकारी देते हुए बताया कि कृष्णा गोदावरी बेसिन में काकीनाडा के तट से 30 किलोमीटर दूर, पहली बार तेल निकाला गया। साल 2016-17 में शुरू हुई इस पर‍ियोजना से पहली बार 7 जनवरी को तेल न‍िकाला गया।

केंद्रीय मंत्री ने कहा कि वहां 26 कुओं में से 4 कुएं पहले से ही चालू हैं। उन्होंने कहा, “हमारे पास न केवल बहुत कम समय में गैस होगी। इसके अलावे मई और जून तक, हम प्रति दिन 45,000 बैरल का उत्पादन करने में सक्षम होने की उम्मीद करते हैं। यह उत्पादन हमारे देश के कुल कच्चे तेल के उत्पादन का 7 प्रतिशत और हमारे गैस उत्पादन का 7 प्रतिशत होगा।

ओएनजीसी ने एक्स पर एक पोस्ट में बताया कि कंपनी ने 7 जनवरी 2024 को कृष्णा गोदावरी डीप-वाटर ब्लॉक 98/2 (बंगाल की खाड़ी में) से पहली बार एफपीएसओ के लिए तेल निकालता शुरू किया जो परियोजना के चरण-2 के पूरा होने के करीब है। तेल और गैस उत्पादन के लिए चरण-3 पहले से ही चल रहा है और जून 2024 में इसके समाप्त होने की संभावना है। 98/2 परियोजना से ओएनजीसी के कुल तेल और गैस उत्पादन में क्रमशः 11 प्रतिशत और 15 प्रतिशत की वृद्धि होने की संभावना है।

आपको बता दें भारत दुन‍िया का तीसरा सबसे बड़ा तेल आयातक देश है। भारत अपनी घरेलू मांग को पूरा करने के लिए वैश्‍व‍िक बाजार के व‍िभ‍िन्‍न स्रोत से आयातित कच्चे तेल पर निर्भर है।

निज्जर हत्याकांड पर आरोपों को लेकर जयशंकर की कनाडा को दो टूक, बोले-सबूत दिए नहीं, जाँच कैसे करें?

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भारत के विदेश मंत्री एस जयशंकर ने लंदन में अपनी पाँच दिवसीय यात्रा के दौरान एक कार्यक्रम के दौरान कनाडा के मुद्दे पर बात की। उन्होंने आतंकी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या मामले में भारतीय एजेंटों पर लग रहे आरोपों पर कनाडा को फिर दो टूक जवाब दिया।विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने खालिस्तानी आतंकी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या को लेकर लगाए गए आरोपों पर कनाडा से एक बार फिर सबूत की मांग की है। उन्होंने कहा कि भारत सरकार निज्जर की हत्या की जांच की जरूरत से इनकार नहीं कर रही है लेकिन कनाडा को अपने उन आरोपों के समर्थन में सबूत पेश करना चाहिए कि मर्डर में भारतीय एजेंट्स की भूमिका है। 

विदेश मंत्री एस जयशंकर ने लंदन में कहा कि कनाडा में, हमें लगता है कि कनाडाई राजनीति ने हिंसक और अतिवादी राजनीतिक विचारों को जगह दी है जो हिंसक तरीकों सहित भारत से अलगाववाद की वकालत करते हैं। इन लोगों को कनाडा की राजनीति में शामिल किया गया है। उन्हें अपने विचार व्यक्त करने की आजादी दी गई है।एस जयशंकर ने आगे कहा कि, बोलने की आजादी और अभिव्यक्ति की आजादी एक निश्चित जिम्मेदारी के साथ आती है। उन स्वतंत्रताओं का दुरुपयोग और राजनीतिक उद्देश्यों के लिए उस दुरुपयोग को बर्दाश्त करना बहुत गलत होगा। देखिए, यदि आपके पास ऐसा आरोप लगाने का कोई कारण है, तो कृपया हमारे साथ सबूत साझा करें। हम जाँच से इनकार नहीं कर रहे है। मगर उन्होंने अभी तक सबूत ही नहीं दिए।

बता दें कि कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो देश की संसद में बयान देकर भारत सरकार पर आरोप लगाया था कि निज्जर की हत्या में भारतीय एजेंटों का हाथ है। इसके बाद से दोनों देशों के बीच तनाव पैदा हो गया। हालांकि, भारत ने ट्रूडो के आरोपों को बेतुका और प्रेरित बताकर सिरे से खारिज कर दिया है।कनाडा के ब्रिटिश कोलंबिया में 18 जून को खालिस्तानी आतंकी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या कर दी गई थी।बता दें कि साल 2020 में भारत द्वारा हरदीप सिंह निज्जर को आतंकी घोषित किया गया था।

भारत-कनाडा विवाद पर अमेरिका की अहम टिप्पणी, जानें ओटावा के नरम पड़ते तेवर के बीच यूएस ने क्या कहा?

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खालिस्तान गैंगस्टर हरदीप सिंह निज्जर की हत्या को लेकर भारत और कनाडा के बीच चल रहे विवाद पर अमेरिका ने एक बार फिर बयान दिया है। कनाडा के पीएम जस्टिन ट्रूडो ने कनाडाई संसद में बिना किसी साक्ष्य के भारत सरकार पर आतंकी निज्जर की हत्या का आरोप लगाया। भारत ने कनाडा के पीएम को उनके गैर जिम्मेदाराना बयान पर करारा जवाब दिया है। इसी बीच कनाडा से करीबी दिखाते हुए अमेरिका ने भारत से कहा है कि वह कनाडा के साथ निज्जर हत्याकांड की जांच में सहयोग करे। हालांकि शुरुआत में अमेरिका ने ट्रूडो के बयान को नकारते हुए यही कहा था कि जांच पूरा होने तक आरोप लगाना सही नहीं। अब एक बार फिर कनाडा से करीबी दिखाते हुए अमेरिका ने भारत से जांच में सहयोग देने की बात कही है। 

अमेरिका के विदेश विभाग के प्रवक्ता मैथ्यू मिलर ने कहा, हम अपने कनाडाई सहयोगियों के साथ निकट समन्वय में हैं। मिलर ने कहा, हमने भारत सरकार से बातचीत की है और उनसे कनाडा की जांच में सहयोग करने का आग्रह किया है।मैथ्यू मिलर ने सोमवार को अपने प्रेस कॉन्फ्रेंस में एक पाकिस्तानी पत्रकार के सवाल के जवाब में कहा,उन्होंने तब भी स्पष्ट किया था और अब मैं इसे दोहरा रहा हूं कि हम इस मामले पर कनाडा में अपने सहयोगियों के साथ निकटता से समन्वय कर रहे हैं। उन्होंने कहा, हमने कई मौकों पर भारत सरकार से बातचीत में कनाडा की जांच में सहयोग करने का आग्रह किया है। (अमेरिका के) विदेश मंत्री को शुक्रवार को अपने भारतीय समकक्ष के साथ अपनी बैठक में ऐसा करने का अवसर मिला।

यह पूछे जाने पर कि क्या भारत कनाडा के साथ सहयोग करने के लिए सहमत हो गया है, इस पर मिलर ने कहा कि इसका जवाब नई दिल्ली को देना है। उन्होंने कहा, ‘मैं चाहता हूं कि भारत सरकार इस पर स्वयं अपनी बात रखे। मैं अमेरिका सरकार की ओर से बात करूंगा और हम सहयोग का आग्रह करते हैं।

बता दें कि इसी साल 18 जून को कनाडा के ब्रिटिश कोलंबिया में हरदीप सिंह निज्जर की गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। 2020 में भारत ने निज्जर को आतंकी घोषित किया था। 18 सितंबर को पीएम जस्टिन ट्रूडो ने भारत पर इसका आरोप लगाया था। कनाडा की संसद में पीएम ट्रूडो ने कहा था कि निज्जर की हत्या के पीछे भारत का हाथ हो सकता है। भारत ने आरोपों को सिरे से खारिज कर दिया था। भारत ने कहा था कि कनाडा का बयान राजनीति से प्रेरित है। भारत ने पीएम ट्रूडो के आरोपों को बेतुका बताया था। ट्रूडो के इस बयान के बाद दोनों देशों के बीच तनाव बढ़ गया। भारत और कनाडा के रिश्तों में खटास आ गई है।

खालिस्तानी आतंकी निज्जर की हत्या से जुड़ा एक वीडियो आया सामने, दो गाड़ियों में सवार दो लोगों ने बरसायी थी 50 गोलियां

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कनाडा में खालिस्तानी आतंकी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या के मामले में बड़ा खुलासा हुआ है। इस घटना से जुड़ा सीसीटीवी वीडियो सामने आया है।बता दें कि इस साल 18 जून को निज्जर की कनाडा के ब्रिटिश कोलंबिया प्रांत के सरे इलाके में एक गुरुद्वारे की पार्किंग में बंदूकधारियों ने गोली मार कर हत्या कर दी थी।निज्जर भारत से अलग एक खालिस्तानी देश की मांग करता आ रहा था। जुलाई 2020 में भारत ने उसे 'आतंकवादी' घोषित किया था।

अमेरिकी अखबार द वॉशिंगटन पोस्ट ने वीडियो फुटेज के हवाले से जो रिपोर्ट जारी की है।वाशिंगटन पोस्ट की ओर से जारी एक रिपोर्ट में घटना के प्रत्यक्षदर्शियों से बातचीत को साझा किया गया है। सीसीटीवी वीडियो और प्रत्यक्षदर्शियों से बात के अनुसार निज्जर की हत्या में कम से कम छह हमलावर दो वाहनों से आए थे। अमेरिकी अखबार ने कहा कि उसकी ओर से समीक्षा की गई 90 सेकंड की वीडियो रिकॉर्डिंग में निज्जर के ग्रे पिकअप ट्रक और एक सफेद सेडान को गुरुद्वारे की पार्किंग में एक साथ चलते हुए देखा गया है।

निज्‍जर की हत्या में कम से कम छह लोग शामिल

अखबार के मुताबिक कैमरे के वीडियो से पता चलता है कि एक सेडान ने कनाडा में रहने वाले सिख हरदीप सिंह निज्जर के ट्रक को रोका था। इसके बाद दो बंदूकधारियों ने निज्‍जर को मार डाला। अखबार के मुताबिक इससे पता लगता है कि निज्जर को मारने के लिए कनाडा के अधिकारियों की तरफ से जो कुछ भी बताया गया है कि उससे भी ज्‍यादा जटिल ऑपरेशन का खुलासा हुआ है। अखबार ने कुछ प्रत्यक्षदर्शियों के हवाले से लिखा है कि निज्‍जर की हत्या में कम से कम छह लोग शामिल थे।वीडियो में नजर आ रहा है कि निज्जर का ग्रे रंग का ट्रक गुरुद्वारे की पार्किंग से निकल रहा है। एक सफेद सेडान स्क्रीन पर नजर आती है और वह भी ट्रक की स्‍पीड से आगे बढ़ती है। इसके बाद वह ट्रक को ओवरटेक करती है और फिर सेडान ट्रक के साथ-साथ चलती है। जैसे ही वे बाहर निकलने के करीब आते हैं, सेडान फिर निज्जर के ट्रक से आगे निकल जाती है। कार गेट पर रुकती है और ट्रक फंस जाता है। इस बीच हुड वाली स्वेटशर्ट पहने दो आदमी आगे बढ़ते हैं और सेडान के दूर हटते ही ड्राइवर की सीट पर बंदूक तान देते हैं। इसी दौरान सामने खड़ी सेडान पार्किंग से बाहर निकल जाती है और कैमरे की नजर से दूर हो जाती है। इसके बाद गोलीबारी करने वाले दोनों लोग भी एक ही दिशा में भागते देखे गए।

हमलावरों ने लगभग 50 गोलियां चलाईं, निज्जर को 34 गोलियां लगी

कनाडा के स्थानीय सिख समुदाय के सदस्यों का कहना है कि जांचकर्ताओं ने उन्हें बताया है कि हमलावरों ने लगभग 50 गोलियां चलाईं थी, जिनमें से निज्जर को 34 गोलियां लगी थी। हर जगह खून और टूटा हुआ शीशा जमीन पर पड़ा था। जमीन गोलियों से छलनी थी। उसी दौरान गुरुमीत सिंह तूर नाम के एक अन्य गुरुद्वारा नेता अपने पिकअप ट्रक में आते हैं और निज्जर को गाड़ी में बिठाकर बंदूकधारियों का पीछा करने के लिए निकल पड़ते हैं।

सिख वेश-भूषा में थे हमलावर

रिपोर्ट में गुरुद्वारे के एक स्वयंसेवक भूपिंदरजीत सिंह का भी हवाला दिया गया है। वे निज्जर के ट्रक तक पहुंचने वाले पहले गवाह थे। सिंह ने ड्राइवर साइड का दरवाजा खोला और निज्जर के कंधों को पकड़ लिया। सिंह के हवाले से कहा गया, ऐसा लग रहा था कि निज्जर की सांसें नहीं चल रही थी। गुरुद्वारा समिति के एक अन्य सदस्य मलकीत सिंह ने बताया कि उन्होंने दो लोगों को पड़ोस के कौगर क्रीक पार्क की ओर भागते देखा। उसने उनका पीछा किया। उन्होंने दावा किया कि हमलावरों ने 'सिख गेट-अप' पहन रखा था, उनके सिर पर छोटे पघों पर हुडी खींची हुई थी और उनके 'दाढ़ी वाले चेहरे' पर मास्क लगा हुआ था।

निज्जर हत्याकांड मामले में ट्रूडो ने अब कही नई बात, बोले-कनाडा ने भारत को खुफिया इनपुट दिए

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भारत-कनाडा के बीच बिगड़ते संबंधों के बीच प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो ने निज्जर हत्याकांड को लेकर अब नया दांव चला है। कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो ने कहा है कि उन्होंने भारत के साथ पहले ही जानकारी साझा की थी।जस्टिन ट्रूडो ने शुक्रवार को कहा कि कनाडा ने कुछ हफ्ते पहले हरदीप सिंह निज्जर की हत्या से जुड़े सबूत भारत से साझा किए हैं। इसमें वह सबूत हैं, जो दिखाता है कि हत्या में भारतीय एजेंट्स शामिल हैं।

ट्रूडो ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा, 'कनाडा ने उन विश्वसनीय आरोपों के सबूत को साझा किया है, जिनके बारे में मैंने सोमवार को बात की थी। हमने कई सप्ताह पहले ही ऐसा किया था। हमें उम्मीद है कि भारत हमारे साथ काम करेगा, ताकि इस गंभीर मामले की तह तक पहुंचा जा सके।'ये तीसरी बार है जब ट्रूडो ने सार्वजनिक तौर पर इस मुद्दे पर बात की है। हालांकि अब तक भारत कहता रहा है कि कनाडा ने अपने आरोपों के समर्थन में अब तक कोई सबूत पेश नहीं किए। 

इससे पहले जस्टिन ट्रूडो ने सोमवार को बिना किसी सबूत पेश किए कहा था कि जून महीने में हुई खालिस्तानी आतंकी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या के मामले में भारत सरकार के एजेंटों के शामिल होने के विश्वसनीय सबूत हैं।उन्होंने कहा था, कनाडा की एजेंसियों ने पुख्ता तौर पर पता किया है कि कनाडा की ज़मीन पर कनाडाई नागरिक की हत्या के पीछे भारत सरकार का हाथ हो सकता है। हमारी ज़मीन पर हुई हत्या के पीछे विदेशी सरकार का होना अस्वीकार्य है और ये हमारी संप्रभुता का उल्लंघन है। 

इस बयान के बाद कनाडा ने भारत के शीर्ष राजनयिक को निष्कासित कर दिया। जवाबी कार्रवाई में भारत ने भी कनाडा के शीर्ष राजनयिक को पांच दिनों के अंदर भारत छोड़ने का आदेश दे दिया था। साथ ही कनाडा में भारतीय दूतावास ने वीज़ा सेवाओं पर ये कहते हुए रोक लगा दी कि ऑपरेशनल वजहों से फिलहाल ये सेवाएं स्थगित कर दी गई हैं।इसके बाद भारत ने भी कनाडा में रहने वाले अपने नागरिकों के लिए एडवाइजरी जारी की। इसमें कहा गया कि भारत विरोधी गतिविधियों के चलते वहां रहने वाले भारतीय काफी सतर्क रहें।बता दें कि वहां भारतीय लोगों को धमकी जा रही है।

कनाडा में खालिस्तानी आतंकी हरदीप सिंह निज्जर की गोली मारकर हत्या, भारत के वांडेट लिस्ट में था नाम

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खालिस्तानी आतंकी हरदीप सिंह निज्जर की कनाडा में गोली मारकर हत्या कर दी गई। निज्जर आतंकी संगठन खालिस्तान टाइगर फोर्स (केटीएफ) का चीफ था। वह कनाडा में रहकर लंबे समय से पंजाब में खालिस्तानी मूवमेंट को हवा दे रहा था। बता दें, एनआईए ने कुख्यात आतंकवादी संगठन खालिस्तान टाइगर फोर्स के मुखिया हरदीप सिंह निज्जर पर 10 लाख का इनाम घोषित किया हुआ था। ये इनाम जालंधर में एक पुजारी की हत्या के मामले में रखा गया था। भारत सरकार ने उसे आतंकी घोषित किया था।

सोमवार को कनाडा के एसएफजे प्रमुख और खालिस्तानी आतंकी हरदीप सिंह निज्जर की गुरु नानक सिख गुरुद्वारा सरे में गोली मारकर हत्या कर दी गई है। जानकारी के अनुसार जिस गुरुद्वारे के आगे निज्जर की हत्या की गई है वह उसी गुरुद्वारे का अध्यक्ष था। गुरु नानक सिख गुरुद्वारे में दो अज्ञात बंदूकधारियों ने निज्जर को गोली मारकर इस वारदात को अंजाम दिया।

कनाडा में बैठकर भारत विरोधी गतिविधियां चला रहा था

निज्जर कनाडा में सिख फॉर जस्टिस (एसएफजे) का प्रमुख था खालिस्तानी टाइगर फोर्स का मुखिया भी था। वो कनाडा में बैठकर भारत के खिलाफ देश विरोधी गतिविधियों को अंजाम दे रहा था। वह आतंकी संगठन सिख फॉर जस्टिस के मुखी गुरपतवंत सिंह पन्नू का करीबी भी था। 

हरदीप सिंह निज्जर पर 10 लाख रुपये का इनाम घोषित किया था

सितंबर 2020 में केंद्रीय गृह मंत्रालय ने हरदीप निज्जर को आतंकवादी घोषित कर दिया था। इसके बाद निज्जर की जालंधर के भार सिंह पुरा गांव में संपत्तियां भी कुर्क की थी। इसी गांव में निज्जर ने पुजारी का कत्ल कराया था। इसके जरिए वह पंजाब में धार्मिक उन्माद फैलाने की फिराक में था। जिसके बाद राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एआईए) ने भगोड़े खालिस्तानी आतंकवादी हरदीप सिंह निज्जर पर 10 लाख रुपये का इनाम घोषित किया था।

निज्जर के संगठन को 4 महीने पहले आतंकी करार दिया था

केंद्रीय गृह मंत्रालय ने 4 महीने पहले निज्जर के संगठन केटीएफ को आतंकी संगठन करार दिया था। गृह मंत्रालय ने कहा था- खालिस्तान टाइगर फोर्स कट्‌टरपंथी संगठन है। जिसका मकसद पंजाब में फिर आतंकवाद फैलाना है। पंजाब में टारगेट किलिंग के पीछे भी इस संगठन का हाथ है। गृह मंत्रालय का कहना है कि ये संगठन भारत की क्षेत्रीय अखंडता, एकता, राष्ट्रीय सुरक्षा और संप्रभुता को चुनौती देता है।