दरभंगा में 22 घंटे में 5 सौ मीटर विसर्जन यात्रा
दरभंगा के जाले प्रखंड स्थित जलेश्वरी स्थान 65 वर्षों से अपने पूजन पद्धति और भव्य विसर्जन यात्रा के लिए चर्चित है है। यह यात्रा एक किमी की होती है। जो शनिवार शाम 5 बजे से शुरू हुई थी। अब 22 घंटे होने को है। अब तक 5 सौ मीटर ही दूरी तय की गई है। 5 सौ मीटर की यात्रा अभी बाकी है। संभावना है कि ये कल सुबह खत्म होगी।
यात्रा जलेश्वरी स्थान से जाले के सुखाई पोखर तक है। जिसके बाद मां की प्रतिमा विसर्जित कर दी जाएगी। यात्रा में दिन-रात 20,000 से अधिक श्रद्धालु शामिल रह रहे हैं
लोक नृत्य झिझीया करती बढ़ रहीं महिलाएं
मुख्य रूप से जाले पूर्वी, जाले पश्चिमी, जाले उत्तरी, जाले दक्षिणी, देवड़ा, जोगियारा, राढी सहित आसपास के गांव से श्रद्धालुओं का आना-जाना है। नवरात्रा के 65वां पूजनोत्सव की विसर्जन यात्रा जलेश्वरी पूजा समिति के अध्यक्ष रतन कुमार मेहता, सचिव देव नारायण मेहता, मेला प्रभारी मुकेश चौधरी सहित अन्य सैकड़ों सदस्यों के नेतृत्व में निकली गई।
मां दुर्गा की विशाल प्रतिमा के साथ लक्ष्मी, सरस्वती, गणेश, कार्तिक, पड़ी, बाघ, भारत माता आदि की प्रतिमाओं के साथ श्रद्धालुओं की टोली गाजे-बाजे के साथ आगे बढ़ रही। हाथ में लाठी डंडा, तलवार लेकर महिलाएं पारंपरिक लोक नृत्य झिझीया करती बढ़ रहीं।
शिफ्ट वाइज 20-20 फोर्स को तैनात
लोगों की भीड़ को देखते हुए यात्रा के साथ 3 दर्जन से अधिक दुकानें भी चलती रही। विधि व्यवस्था सहित शांतिपूर्ण वातावरण बनाएं रखने को लेकर स्थानीय जनप्रतिनिधियों व पुलिस प्रशासन की तैनाती है। जाले थाना अध्यक्ष ने बताया कि दुर्गा पूजा में विधि व्यवस्था को कायम रखने के लिए अनुमंडल से 8 और जिला से 7 फोर्स जाले थाने को दिए गए हैं। शिफ्ट वाइज 20-20 फोर्स को तैनात किया गया है।
Oct 18 2024, 20:09