आज के भारत में विश्व को अपने अनुरूप चलाने की क्षमता : मंजीव पुरी

गोरखपुर, 8 सितंबर। नेपाल, बेल्जियम और लक्जमबर्ग में भारत के पूर्व राजदूत मंजीव पुरी ने कहा कि आज के भारत में विश्व को अपने अनुरूप चलाने की क्षमता है। आज का भारत किसी भी देश की घुड़कियों या धमकियों की परवाह नहीं करता है। भारत की विदेश नीति इतनी सशक्त हो चुकी है आज के दौर में कोई भी देश भारत पर दबाव बनाकर कुछ लोग करा सकता।

मंजीव पुरी रविवार को महाराणा प्रताप पीजी (एमपीपीजी) कॉलेज जंगल धूसड़ में आयोजित ‘भारतीय विदेश नीति के बदलते आयाम : 2019 से अब तक’ विषयक दो दिवसीय राष्ट्रीय संगोष्ठी के समापन समारोह (समारोप) को बतौर मुख्य अतिथि संबोधित कर रहे थे। संगोष्ठी के प्रतिभागियों के साथ दोतरफा संवाद करने के अंदाज में श्री पुरी ने कहा कि विदेश नीति के मुद्दे पर देश में मजबूती और बदलाव का यह दौर पिछले दस वर्षों में सशक्त नेतृत्व के चलते आया है। उन्होंने कहा कि किसी भी देश के मजबूत होने के लिए आर्थिक मजबूती बहुत जरूरी है। वैश्विक स्तर पर धाक जमाने में मजबूत हो रही भारतीय अर्थव्यवस्था का बड़ा योगदान है। जिसकी जितनी जीडीपी, वह उतना अधिक शक्तिशाली। इस फॉर्मूले पर भारत 3.7 ट्रिलियन डॉलर की जीडीपी के साथ विश्व की पांचवीं सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बन चुका है। उन्होंने कहा कि 2023 में दुनिया के 20 बड़े और प्रभावशाली देशों के समूह जी-20 का नेतृत्व करके यह दिखा दिया है कि उसका सामर्थ्य क्या है। श्री पुरी ने कहा कि तेजी से बदलता और वैश्विक परिदृश्य पर आगे बढ़ता भारत पूरी दुनिया को नेतृत्व देने को तैयार है और इसमें विगत कुछ सालों से बेहद असरदार साबित हुई भारत की विदेश नीति और कूटनीति का महत्वपूर्ण योगदान है।

राष्ट्रीय संगोष्ठी के समापन समारोह की अध्यक्षता करते हुए उत्तर प्रदेश राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के पूर्व उपाध्यक्ष लेफ्टिनेंट जनरल (सेवानिवृत्त) आरपी शाही ने कहा कि विगत कुछ सालों में भारत ने अपनी विदेश नीति को समयानुकूल और त्वरित प्रतिक्रियावादी बनाया है। यही वजह है कि आज जब दुनिया के किन्हीं भी दो देशों के बीच टकराव की स्थिति आती है तो पूरा विश्व चाहता है कि इस टकराव को रोकने की पहल भारत करे। श्री शाही ने कहा कि पाकिस्तान के खिलाफ जब सर्जिकल स्ट्राइक की गई तब भारत की कूटनीति इतनी शानदार थी कि किसी भी ताकतवर देश ने भारत के खिलाफ प्रतिक्रिया करने का साहस नहीं किया। उन्होंने कहा कि 2019 के बाद भारत की विदेश नीति में बहुत प्रभावी परिवर्तन देखने को मिला है। आज देश का नेतृत्व इंडिया फर्स्ट की भावना से सभी देशों से संवाद की भूमिका में रहता है। किसी भी देश में यदि भारतीयों पर संकट आता है तो उन्हें सुरक्षित निकालने की त्वरित पहल की जाती है। आज भारतीय विदेश नीति एकदम स्पष्ट है कि देश के हित में जो भी सर्वोत्तम होगा, हम उसे करेंगे। श्री शाही ने कहा कि आज ग्लोबल साउथ की आवाज बन चुका है।

समापन समारोह के विशिष्ट अतिथि सेंटर फॉर कैनेडियन, यूएस एंड लैटिन अमेरिकन स्टडीज (स्कूल ऑफ इंटरनेशनल स्टडीज) जेएनयू नई दिल्ली के प्रोफेसर अरविंद कुमार ने भारत की विदेश नीति में आए क्रमिक परिवर्तन की विस्तार से चर्चा की। उन्होंने कहा कि भारत को अपने पड़ोस में अनेक चुनौतियों का सामना करना पड़ता है। चुनौतियों के अनुरूप ही भारत ने अपनी विदेश नीति और कूटनीति (डिप्लोमेसी) में परिवर्तन किया है। चीन की विस्तारवादी नीतियों को करारा जवाब देते हुए भारत ने उसे पिछले कुछ सालों में टेबल टाक (संवाद) के लिए विवश किया है। प्रो. अरविंद कुमार ने कहा कि वास्तव में भारत विश्व को परिवार मानता है और विश्व शांति की बात करता है। इसकी झलक उसकी विदेश नीति में भी देखने को मिलती है। उन्होंने कहा कि हाल के कुछ सालों में भारत ने अपनी पोलिटिकल डिप्लोमेसी को इकोनॉमिकल डिप्लोमेसी की तरफ शिफ्ट किया है। वैश्विक महामारी कोविड के दौर में भारत की वैक्सीन डिप्लोमेसी ने तो विश्व समुदाय के लिए संकटमोचक की भूमिका निभाई। तमाम उद्धरणों का हवाला देकर उन्होंने बताया कि आज भारत अमेरिका और रूस जैसे ताकतवर देशों से ‘बारगेनिंग’ करने की स्थिति में है।

राष्ट्रीय संगोष्ठी के समापन समारोह में अतिथियों का स्वागत करते हुए महाराणा प्रताप पीजी कॉलेज जंगल धूसड़ के प्राचार्य डॉ. प्रदीप कुमार राव ने संगोष्ठी के उद्देश्यों पर प्रकाश डाला। दो दिन तक चली संगोष्ठी के विभिन्न सत्रों की रिपोर्ट महाराणा प्रताप पीजी कॉलेज में राजनीति विज्ञान विभाग के अध्यक्ष हरिकेश यादव ने प्रस्तुत की जबकि संचालन सहायक आचार्य डॉ. सलिल कुमार पांडेय ने किया। इस अवसर प्रमथनाथ मिश्रा, प्रो. तेज प्रताप सिंह, डॉ. श्रीभगवान सिंह, डॉ. अविनाश प्रताप सिंह, डॉ. सत्यपाल सिंह, डॉ. आमोद राय, डॉ. उग्रसेन सिंह, डॉ. घनश्याम शर्मा, डॉ. अभय प्रताप सिंह आदि मौजूद रहे।

विधायक ने लेडिज पार्लर व ट्रेनिंग सेंटर का फीता काट कर उद्घाटन किया

खजनी गोरखपुर। स्वस्थ्य और सेहतमंद रहने के लिए सभी लोग अपने रूप रंग और साज सज्जा पर विशेष ध्यान देते हैं। आज महिलाएं हों या पुरुष खुद को अप-टू-डेट रखना समय की मांग है, साथ ही इस दिशा में कैरियर बनाने और कौशल विकास की बेशुमार संभावनाएं हैं।

यह बातें आज क्षेत्रीय विधायक प्रदीप शुक्ला ने नगर पंचायत उनवल के टेकवार चौराहे पर स्थिति रंजना मेक ओवर लेडिज ब्यूटीपार्लर व ट्रेनिंग सेंटर के उद्घाटन के अवसर पर कहीं फीता काट कर सेंटर का शुभारंभ करते हुए उन्होंने कहा कि टेक्निकल, मेहनत, मजदूरी, खेती और पशुपालन के काम न हों तो आॅफिस, बैंकिंग आदि सेक्टर में फिजिकल फिटनेस और लुक अर्थात सुंदर दिखना बहुत महत्व रखता है।

सेंटर के संचालिका रंजना ने बताया कि ट्रेनिंग सेंटर में एक महीने से लेकर 6 महीने तक के प्रशिक्षण के कोर्स हैं। जिसमें मेकअप,हेयर स्टाइल, मेंहदी और स्किन (त्वचा) से संबंधित विभिन्न पार्लर के कार्यों का प्रशिक्षण दिया जाएगा। कोर्स पूरा होने पर उसका सर्टिफिकेट भी दिया जाएगा। साथ ही सेंटर में नियमित रूप से पार्लर से जुड़ी सभी प्रकार की सेवाएं भी उपलब्ध होंगी। यहां पर बहनें और बेटियां ट्रेनिंग लेकर आत्मनिर्भर बन सकती हैं।

इस अवसर पर विधायक के साथ नगर पंचायत अध्यक्ष महेश कुमार दुबे एडवोकेट, संतोष राम त्रिपाठी, इन्द्रेश कुमार राव,सभासद प्रतिनिधि अरविंद प्रसाद ,योगेश वर्मा, अवधेश गुप्ता,शिवकुमार शाह,इंद्र कुमार निगम,अज्जू खान, मिथिलेश यादव, जोगिंदर साहनी,जयचंद यादव श्री प्रकाश गुप्ता,राजन पासवान समेत दर्जनों लोग मौजूद रहे।

फतेहपुर से आई बेहद छोटे कद की महिला को सीएम योगी ने किया पूरा, साथ में खिंचवाई फोटो


गोरखपुर। रविवार सुबह गोरखनाथ मंदिर में आयोजित जनता दर्शन में एक ऐसी फरियाद भी आई कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ उसे सुनकर हंस पड़े। उन्होंने तत्काल इस फरियाद का निस्तारण भी कर दिया। यह फरियाद थी फतेहपुर से आई मेनश्री नाम की बेहद छोटे कद की महिला की। मांग और गुहार की महाराज जी (सीएम योगी) के साथ फोटो खिंचवानी है ताकि सोशल मीडिया पर खूब वायरल होकर वह व्यापक पहचान बना सके। हैरत से हंसते हुए मुख्यमंत्री ने यह मांग फौरन पूरी कर दी।

गोरखनाथ मंदिर में रविवार सुबह मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ वहां मौजूद लोगों की समस्याएं सुन रहे थे। इस दौरान पूरी गंभीर गंभीरता और संवेदनशीलता से एक-एक व्यक्ति की समस्या सुनते हुए, इसके निस्तारण के लिए मौके पर ही अधिकारियों को जरूरी दिशा निर्देश देते रहे। जनता दर्शन में फतेहपुर से आई मेनश्री नाम की बहुत छोटे कद की महिला की समस्या सुनते ही सीएम योगी मुस्कराने लगे। कद के लिहाज से शारीरिक दिव्यांगता की श्रेणी में आने वाली इस महिला की इच्छा सोशल मीडिया पर बड़ी पहचान बनाने की है। इसके लिए उसने मुख्यमंत्री से कहा, महाराज जी! मुझे आपके साथ फोटो खिंचवानी है। आपके साथ फोटो खूब वायरल हो जाएगी।’ मुख्यमंत्री ने फोटो खिंचवाकर उसकी डिमांड तुरंत पूरी के दी। यही नहीं, उन्होंने मेनश्री के साथ सेल्फी के अनुरोध को भी स्वीकार किया।

मुख्यमंत्री ने गोरखपुर के गोला क्षेत्र से आई एक अन्य अत्यंत छोटे कद की महिला की डिमांड को सम्मानजनक तरीके से पूरा करने के लिए जिलाधिकारी को निर्देशित किया। यह महिला मुख्यमंत्री से आर्थिक सहायता की गुहार लेकर पहुंची थी। सीएम योगी ने उसके प्रार्थना पत्र को लेते हुए डीएम को निर्देशित किया महिला की भरपूर मदद की जाए। मुख्यमंत्री की इस पहल पर उक्त महिला ने बारम्बार आभार जताया।
*पूर्व विधायक ने किया बगहा कटान क्षेत्र का निरीक्षण, अधिकारियों को जम कर लगाई फटकार*

गोरखपुर- बड़हलगंज: स्थानीय विकास खण्ड के गांव बगहा देवार में हो रही सरयू की भयंकर कटान की सूचना पाकर शनिवार को चिल्लूपार के पूर्व विधायक विनय शंकर तिवारी कटान से प्रभावित लोगों के बीच पहुँचकर उनकी पीड़ा को समझा और कटान स्थल का निरीक्षण किया।

कटान स्थल निरीक्षण के दौरान कटान पीड़ितों ने सिचाई विभाग द्वारा कराए जा रहे कटान रोधी बचाव में देरी व मनमानी तरीके से कार्य कराए जाने की बात कही जिस पर मौके से ही विनय शंकर तिवारी ने फोन कर बाढ़ खण्ड व सिचाई विभाग के अधिकारियों पर विफ़रे और जमकर फटकार लगाते हुए शीघ्र बचाव कार्य में तेजी लाने की बात कही।किसी तरह लापरवाही नही होने का हवाला देते हुए विनयशंकर तिवारी ने कहा कि कटान में जिनकी झोपडी और घर बहा है, उनकी पीड़ा कौन समझेगा?

उन्होंने कहा कि समय रहते यदि आप लोग बचाव कार्य चालू किये होते तो आज सैकड़ों एकड़ कृषि योग्य भूमि सरयू की धारा में नही गयी होती और न आज गांव के कटने का खतरा रहता।निरीक्षण के दौरान पूर्व विधायक के साथ पूर्व प्रमुख राजबहादुर सिंह, भुवनेश्वर चतुर्वेदी, अजय दुबे, कमलेश सिंह आशीष तिवारी आशतोष शुक्ल सहित समस्त ग्रामीण उपस्थित थे।

*कुआंनों नदी में मिले शव की शिनाख्त हुई*

गोरखपुर- बीती सुबह 8:30 बजे बनकटीं गांव के पास मुड़कटहवा बाबा स्थान के सामने कुआंनों नदी में एक अज्ञात युवक का शव मिला था। सिकरीगंज पुलिस ने उसे पंचायत नामे के बाद पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया था।शव की पहचान नहीं हो पाई थी।आज मृतक की पहचान उसके बहनोई ने हरपुर बुदहट थाना क्षेत्र के तुलसी पांडेय गांव के निवासी स्वर्गीय रामकृपाल पांडेय के सबसे छोटे पुत्र अनिल पांडेय 35 वर्ष के रूप में की है। बताया गया कि मृतक बीते 4 अगस्त से ही गायब था। पिता और बड़े भाई की मौत हो चुकी है एक और भाई अपने परिवार के साथ कहीं बाहर रहता है और परिवार से कोई मतलब नहीं रखता है।

थानाध्यक्ष सिकरीगंज कमलेश कुमार ने बताया कि पोस्टमार्टम रिपोर्ट में दम घुटने से मौत होने की जानकारी दी गई है। मृतक के बहनोई ने अपना नाम न जाहिर करने की अपील की है।

*सपा की मासिक बैठक में आगामी विधानसभा चुनाव को लेकर की गई चर्चा*

गोरखपुर- जिला समाजवादी पार्टी की मासिक बैठक पार्टी के बेतियाहाता स्थित कार्यालय पर जिलाध्यक्ष ब्रजेश कुमार गौतम की अध्यक्षता में हुई संचालन जिला महासचिव रामनाथ यादव ने किया बैठक कों सम्बोधित करते हुए जिलाध्यक्ष ब्रजेश कुमार गौतम ने कहा कि सभी साथियों अभी से 2027 चुनाव की तैयारी में जुट जाइए जिन बूथों पर पार्टी प्रत्याशी की हार हुई है उसके कारणों व कमियों का पता लगाकर उसे दुर करने में सभी साथी जुट जाइए। 2027 के विधानसभा चुनाव में भाजपा का सफाया होगा भाजपा की सरकार में निर्दोष लोगों को सताया जा रहा हैं। किसान परेशान है। नौजवानों का भविष्य अंधकारमय है। समाज का हर वर्ग परेशान, बदहाल है। जबसे भाजपा की सरकार सत्ता में आई हैं विकास पूरी तरह अवरूद्ध है। जनता महंगाई, भ्रष्टाचार से त्रस्त है।

जिलाध्यक्ष ने कहा कि भाजपा की राजनीति को निष्प्रभावी बनाने में पीडीए एक सशक्त भरोसा साबित हुआ है। संविधान और आरक्षण के मुद्दे को और धार देना हैं। सामाजिक न्याय के लिए जातीय जनगणना का होना आवश्यक है। समाजवादी पार्टी इन्हीं मुद्दों को लेकर जनता के बीच जा रही है। उन्होंने कहा कि भाजपा का राजनीतिक चरित्र ही विकास विरोधी है। पिछले सात वर्षों में भाजपा ने विकास के नाम पर कोई काम नहीं किया है और न ही भाजपा नेतृत्व के पास विकास का कोई विजन है।

समाजवादी पार्टी के प्रति जनता का भरोसा है। भाजपा का एजेंडा समाज में नफरत फैलाकर सामाजिक सद्भाव बिगाड़ कर अपनी राजनीतिक महत्वाकांक्षा को पूरा करना है। समाजवादी पार्टी का प्रत्येक कार्यकर्ता भाजपा के इन मंसूबों को कभी भी पूरा नहीं होने देगा। जनता समझ रही है कि उसको समाजवादी सरकार बनने पर ही तमाम समस्याओं से छुटकारा मिल सकेगा।

*सक्रिय क्षय रोग खोजी अभियान से पहले धर्मगुरु समाज से अपील, संभावित मरीजों को जांच और इलाज के लिए प्रेरित करें*

प्रधानमंत्री के नेतृत्व में वर्ष 2025 तक देश से टीबी का उन्मूलन करने के राष्ट्रव्यापी संकल्प को पूरा करने में धर्मगुरु समाज की अहम भूमिका है। समाज में उनकी बातों की स्वीकार्यता है। धर्मगुरु टीबी के लक्षणयुक्त संभावित मरीजों को जांच और इलाज के लिए प्रेरित करेंगे तो अधिकाधिक टीबी मरीजों की पहचान की जा सकेगी। यह बातें जिला क्षय उन्मूलन अधिकारी डॉ गणेश यादव ने कहीं। उन्होंने सक्रिय क्षय रोग खोजी अभियान से पहले धर्मगुरु समाज के संवेदीकरण बैठक को जिला क्षय रोग केंद्र में शनिवार को संबोधित किया । बैठक के जरिये धर्मगुरु समाज से अपील की गई कि वह लक्षणयुक्त अधिकाधिक संभावित मरीजों को जांच और इलाज के लिए प्रेरित करें।

डॉ गणेश यादव ने कहा कि अगर एक टीबी मरीज की समय से जांच और इलाज न हो तो वह एक वर्ष में दस से पंद्रह लोगों को इस बीमारी से संक्रमित कर सकता है। वहीं, अगर मरीज की समय से पहचान हो जाए और दवा शुरू कर दिया जाए तो तीन से चार सप्ताह बाद उसके जरिये दूसरे के संक्रमित होने की आशंका नहीं रह जाती है। समय से जांच और इलाज न होने के कारण ड्रग सेंसिटिव (डीएस) टीबी धीरे धीरे ड्रग रेसिस्टेंट (डीआर) टीबी में बदल जाती है। जहां डीएस टीबी महज छह माह में ठीक हो जाती है, वहीं डीआर टीबी के मरीज को ठीक होने में एक से डेढ़ साल का और कई बार उससे भी अधिक समय लग जाता है। डीआर टीबी के इलाज के दौरान मरीजों को कई प्रकार की जटिलताएं भी झेलनी पड़ती हैं। यही वजह है कि विभाग का जोर शीघ्र जांच और इलाज पर है।

जिला क्षय उन्मूलन अधिकारी डॉ यादव ने कहा कि टीबी बाल और नाखून को छोड़ कर शरीर के किसी भी हिस्से में हो सकती है। अगर दो सप्ताह से अधिक समय तक खांसी आए, पसीने के साथ रात में बुखार हो, सीने में दर्द हो, तेजी से वजन घट रहा हो, सांस फूलती हो और बलगम में खून आए तो टीबी की जांच जरूर करानी चाहिए। जांच की सुविधा सभी सरकारी स्वास्थ्य केंद्रों पर मौजूद है। जिले में सभी ब्लॉक स्तरीय अस्पतालों, जिला क्षय रोग केंद्र, बीआरडी मेडिकल कॉलेज और एम्स गोरखपुर में टीबी का इलाज सरकारी प्रावधानों के अनुसार किया जाता है और मरीज पर आर्थिक बोझ नहीं पड़ता है।

डॉ यादव ने बताया कि नौ सितम्बर से बीस सितम्बर तक जिले में सक्रिय क्षय रोग खोजी (एसीएफ) अभियान चलाया जाएगा । इसके तहत स्वास्थ्य विभाग की तीन सदस्यीय टीम करीब 10.88 लाख की आबादी के बीच जाएगी और टीबी के नये संभावित मरीजों को खोजेंगी। इन मरीजों की जांच कराई जाएगी और जिन लोगों में टीबी की बीमारी निकलेगी उन्हें समुचित इलाज दिया जाएगा।

इस मौके पर यूनिसेफ के डीएमसी डॉ हसन फहीम ने टीबी से बचाव में नियमित टीकाकरण की महत्ता बताई।उप जिला क्षय रोग अधिकारी डॉ विराट स्वरूप श्रीवास्तव, डीपीसी धर्मवीर प्रताप सिंह, पीपीएम समन्वयक अभय नारायण मिश्र, मिर्जा आफताब बेग, टीवी एचआईवी कोआर्डिनेटर राजेश सिंह, कमलेश कुमार गुप्ता, टीबी चैंपियन चंद्र प्रकाश, इंद्रनील कुमार, मयंक, गोबिंद और केके शुक्ला ने आयोजन में प्रमुख तौर पर सहयोग दिया। विश्व स्वास्थ्य संगठन के प्रतिनिधि ने बैठक में तकनीकी जानकारियां प्रदान कीं।

धर्मगुरुओं ने दिया आश्वासन

संवेदीकरण बैठक के प्रतिभागी दर्जनों धर्मगुरुओं ने एसीएफ के दौरान और उसके बाद भी टीबी उन्मूलन कार्यक्रम में सक्रिय योगदान देने का संकल्प लिया। धर्मगुरु मोहम्मद अजीम फारुकी ने बताया कि बैठक के जरिये टीबी उन्मूलन के लिए चलाई जा रही विभिन्न योजनाओं के बारे में विस्तार से जानकारी मिली है। स्वास्थ्य विभाग के प्रयास को सफल बनाने में धर्मगुरु समाज आगे बढ़ कर भागीदारी निभाएगा। इससे पहले भी उन्होंने एक टीबी मरीज की पहचान और इलाज में मदद की है।

मरीजों को मिलती हैं यह सुविधाएं

नये मरीज की अत्याधुनिक सीबीनॉट मशीन से जांच होती है

प्रत्येक टीबी मरीज की एचआईवी और मधुमेह की जांच भी कराई जाती है

इलाज चलने तक 500 रुपये प्रति माह पोषण के लिए खाते में धनराशि दी जाती है

टीबी मरीजों के निकट सम्पर्कियों की भी जांच कराई जाती है

मरीजों के निकट सम्पर्की में टीबी न मिलने पर भी उन्हें बचाव की दवा खिलाते हैं

आर्थिक तौर पर कमजोर मरीजों को निक्षय मित्रों की मदद से पोषण व मानसिक संबल दिलवाया जाता है

जिले में टीबी की स्थिति

डीआर टीबी मरीज 350

डीएस टीबी मरीज 8145

उपचार सफलता दर 93 फीसदी

*प्रदेश बार काउंसिल के आह्वान पर अधिवक्ताओं का विरोध प्रदर्शन, महिला अधिवक्ता के हत्यारे की गिरफ्तारी की मांग*

गोरखपुर- प्रदेश नेतृत्व के आह्वान पर आज खजनी तहसील बार एसोसिएशन की आम सभा की बैठक के बाद अध्यक्ष कृपा शंकर सिंह के नेतृत्व में कासगंज के दीवानी न्यायालय की महिला अधिवक्ता मोहिनी तोमर के अपहरण और नृशंस हत्या की घटना पर अधिवक्ताओं ने आक्रोश जताया। हत्यारों को अविलंब गिरफ्तार करने की मांग करते हुए अधिवक्ताओं ने पुलिस प्रशासन के खिलाफ नारेबाजी की।

अधिवक्ताओं ने युवा महिला अधिवक्ता मोहिनी तोमर के हत्यारों को जल्द गिरफ्तार करने, उनके परिवारजनों को एक करोड़ रुपया मुआवजा देने तथा प्रदेश में अधिवक्ता प्रोटेक्शन एक्ट को लागू करने से संबंधित पत्रक उप जिलाधिकारी खजनी की अनुपस्थिति में तहसीलदार गोपाल कृष्ण तिवारी के माध्यम से मुख्यमंत्री को भेजा गया। नारे लगाते हुए सभी अधिवक्ताओं ने आज न्यायिक कार्य का बहिष्कार किया। हत्यारों के गिरफ्तारी की मांग कर रहे सभी अधिवक्ताओं ने पुलिस प्रशासन मुर्दाबाद के नारे लगाए।

इस अवसर पर अध्यक्ष कृपा शंकर सिंह, मंत्री कामेश्वर प्रसाद, उपाध्यक्ष दिनेश कुमार, अनूप सिंह, रामप्रीत यादव, विनोद पांडे,रामकृष्ण द्विवेदी, पन्ने लाल यादव, दरगाही प्रसाद, चंद्रभान शुक्ला उपस्थित थे।

*समाधान दिवस में पहुंचे 70 फरियादी, एक का हुआ निस्तारण*

गोरखपुर- सितंबर माह के पहले समाधान दिवस का आयोजन तहसील मुख्यालय में तहसीलदार गोपाल कृष्ण तिवारी की अध्यक्षता में आयोजित हुआ। कुल 70 फरियादी अपनी समस्याएं लेकर प्रस्तुत हुए जिनमें एक मामले को मौके पर निस्तारित करा दिया गया।

इस दौरान घईसरा गांव से पहुंचे दर्जनों ग्रामीणों ने बताया कि गांव की सौ साल पुरानी पोखरी कुछ दबंगों ने पाट दी है जिससे उनके घरों से निकलने वाला सीवर का पानी तथा स्कूल आने जाने में बच्चों के लिए समस्या हो रही है। तहसीलदार ने लेखपालों की टीम को मौके पर जांच और कार्रवाई का आदेश दिया। टिकुलियाडांड़ गांव बेलघाट के रामप्रताप ने बताया कि बैनामे की भूमि पर कब्जा नहीं मिल रहा है।

सतुआभार गांव के पिंगलेश गुप्ता एकडंगा गांव के रामप्रगट मिश्रा बारीगांव के गनेश असौजी बाजार के दिनेश कुमार ने अपनी भूमि विवाद से संबंधित समस्याएं पेश की, ज्यादातर मामले जमीनी विवाद से संबंधित प्रस्तुत हुए। तहसीलदार ने नियत समय में सभी मामलों के समाधान का आदेश दिया। इस दौरान विभिन्न अधिनस्थ विभागों के अधिकारी कर्मचारी मौजूद रहे।

*गुरु गोरखनाथ का दर्शन-पूजन कर भावविभोर हुए उपराष्ट्रपति, सीएम योगी ने अपनी देखरेख में संपन्न कराया अनुष्ठान*

गोरखपुर- पहली बार गोरखपुर आए उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने शनिवार को सैनिक स्कूल का लोकार्पण करने के बाद गोरखनाथ मंदिर जाकर शिवावतार महायोगी गुरु गोरखनाथ जी का दर्शन-पूजन किया। साथ में उनकी पत्नी डॉ. सुदेश धनखड़ भी उपस्थित रहीं। दर्शन-पूजन का अनुष्ठान मुख्यमंत्री एवं गोरक्षपीठाधीश्वर योगी आदित्यनाथ ने खुद अपनी देखरेख में संपन्न कराया। गुरु गोरखनाथ के चरणों में शीश नवाकर और महायोगी के मंदिर के गर्भगृह में प्रज्वलित अखंड ज्योति की महत्ता जानकर उपराष्ट्रपति भावविभोर हो गए।

सैनिक स्कूल के लोकार्पण का कार्यक्रम संपन्न होने के बाद मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की अगवानी में उपराष्ट्रपति, सपत्नी गोरखनाथ मंदिर पहुंचे। यहां मंदिर के मुख्य द्वार से वह गोल्फ कार्ट से मुख्य मंदिर की सीढ़ियों तक आए। यहां उपराष्ट्रपति के आते ही 251 वेदपाठी छात्रों ने वैदिक मंत्रोच्चार और शंखध्वनि के बीच उनका दिव्य स्वागत किया। मंदिर के गर्भगृह में प्रवेश करने के दौरान गोरखनाथ मंदिर के प्रधान पुजारी योगी कमलनाथ, देवीपाटन शक्तिपीठ के महंत योगी मिथिलेशनाथ, कालीबाड़ी के महंत रविंद्रदास, चचाईराम मठ के महंत पंचानन पुरी, द्वारिका तिवारी और महाराणा प्रताप शिक्षा परिषद के पदाधिकारी डॉ. एसपी सिंह ने उपराष्ट्रपति और उनकी पत्नी की अगवानी की।

मंदिर के गर्भगृह में पहुंचकर उपराष्ट्रपति और उनकी पत्नी ने विधि विधान से वैदिक मंत्रोच्चार के बीच महायोगी गोरखनाथ का दर्शन-पूजन किया। उन्होंने मंदिर के गर्भगृह में प्रज्वलित अखंड ज्योति का भी दर्शन कर प्रणाम निवेदित किया। पूजन के अनुष्ठान के दौरान वहां मुख्यमंत्री एवं गोरक्षपीठाधीश्वर योगी आदित्यनाथ भी मौजूद रहे। गोरक्षपीठाधीश्वर ने उपराष्ट्रपति को महायोगी गोरखनाथ और मंदिर के गर्भगृह में प्रज्वलित अखंड ज्योति की महिमा के बारे में विस्तार से जानकारी दी। मुख्यमंत्री ने मंदिर के गर्भगृह में उपराष्ट्रपति और उनकीन पत्नी को गुरु गोरखनाथ की प्रतिमा भेंटकर तथा अंगवस्त्र देकर अभिनंदन किया।

दर्शन-पूजन के बाद उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ और उनकी पत्नी डॉ. सुदेश धनखड़ ने सीएम योगी के साथ मंदिर परिसर स्थित पीठाधीश्वर निवास आकर सूक्ष्म जलपान ग्रहण किया। इस दौरान महायोगी गोरखनाथ के पौराणिक आख्यान, नाथपंथ के गुरुजन और गोरखनाथ मंदिर के इतिहास की जानकारी देते हुए उन्हें अपने गुरुदेव ब्रह्मलीन महंत अवेद्यनाथ पर तीन खंडों में प्रकाशित ग्रंथ ‘राष्ट्रीयता के अनन्य साधक महंत अवेद्यनाथ’ भेंट स्वरूप दिया। साथ ही उन्होंने गीता प्रेस से प्रकाशित कई आध्यात्मिक पुस्तकें भी उपहार स्वरूप दीं।

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के सानिध्य में कई जनप्रतिनिधियों, शिक्षाविदों, उद्यमियों, चिकित्सकों और समाज के विभिन्न क्षेत्रों के गणमान्यजन ने गोरखनाथ मंदिर पधारे उपराष्ट्रपति से शिष्टाचार भेंट की। सबका परिचय सीएम योगी ने कराया। यहां उपराष्ट्रपति से मिलने आए गीताप्रेस के न्यासियों ने उन्हें पांच आध्यात्मिक पुस्तकों का सेट उपहार स्वरूप प्रदान किया। शिष्टाचार भेंट के बाद भोज का आयोजन किया गया। इस अवसर पर उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़, उनकी पत्नी डॉ. सुदेश धनखड़, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और केंद्रीय ग्रामीण विकास राज्य मंत्री कमलेश पासवान ने एक टेबल पर भोजन किया। गोरखनाथ मंदिर में करीब एक घंटा का वक्त बिताने के बाद उपराष्ट्रपति एयरपोर्ट के लिए रवाना हो गए। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ उन्हें विदा करने के लिए एयरपोर्ट तक गए।