NSTPS नबीनगर ने शुरू किया गांवो में सड़क एवं खेल मैदान का निर्माण कार्य, मुख्य महाप्रबंधक और नबीनगर विधायक ने संयुक्त रुप से किया उद्घाटन

औरंगाबाद : जिले में N S T P S नबीनगर के मुख्य महाप्रबंधक चन्दन कुमार सामंता एवं नबीनगर विधायक विजय कुमार सिंह ने गांवों में सड़क एवं खेल मैदान के निर्माण का उद्घ घाटन किया।

N S T P S नबीनगर नैगमिक सामाजिक उत्तरदायित्व के अंतर्गत परियोजना परिसर के निकटतम गाँवो में यह निर्माण कार्य कर रही है। लखैपुर में बनाए जा रहे सड़क निर्माण का अनुमानित खर्च 30 लाख रुपए है, वही तेतरहर गांव में खेल मैदान 80 लाख की लगत से बनकर तैयार होगा। तेतरहर गाँव नबीनगर प्रखंड में स्थित है वही, लखैपुर बारुण प्रखंड के अंतर्गत आता है। 

ज्ञात हो की N S T P S नबीनगर ने सिमरा दुसाध, ओबीपुर गांव सहित अनेको गाँवो में सड़क एवं अन्य आधारभूत सुविधाओं का निर्माण कार्य कर रहा है।

खेल मैदान के निर्माण कार्य का शुभारम्भ करते हुए मुख्य महाप्रबंधक चन्दन कुमार सामंता ने गांववासियों को बधाई दी और स्थानीय विधायक डब्लू सिंह से आग्रह किया कि वे युवाओं और ख़ास करके महिलाओं को खेल के प्रति प्रोत्साहित करे।

औरंगाबाद से धीरेन्द्र

हत्यारोपी को आजीवन कारावास, शादी में डांस के दौरान युवक की गोली मारकर कर दी थी हत्या

औरंगाबाद : आज व्यवहार न्यायालय औरंगाबाद में एडिजे दस रत्नेश्वर सिंह ने ओबरा थाना कांड संख्या -97/19 में सज़ा के बिन्दु पर सुनवाई करते हुए एकमात्र काराधीन अभियुक्त अभिषेक कुमार उर्फ अभिषेक गिरी रामपुर ओबरा को भादंवि धारा -302/34 में आजीवन कारावास और पच्चीस हजार जुर्माना लगाया है। जुर्माना न देने पर छः माह अतिरिक्त कारावास होगी। 

एपीपी अशोक कुमार सिंह ने बताया कि अभियुक्त को आर्म्स एक्ट में भी सज़ा सुनाई गई है। आर्म्स एक्ट की धारा 25(1- बी) ए में तीन साल की सजा और पांच हजार जुर्माना लगाया है। जुर्माना न देने पर तीन माह अतिरिक्त कारावास होगी। 

धारा 26 में तीन साल की सजा और पांच हजार जुर्माना, जूर्माना न देने पर तीन माह अतिरिक्त कारावास होगी। आर्म्स एक्ट की धारा 27 में तीन साल की सजा और पांच हजार जुर्माना लगाया गया है। जूर्माना न देने पर तीन माह अतिरिक्त कारावास होगी। सभी सजाएं साथ साथ चलेंगी। अभियुक्त को 06/02/24 को दोषी ठहराया गया था।  

अधिवक्ता सतीश कुमार स्नेही ने बताया कि प्राथमिकी सूचक चितरंजन दुबे रामपुर अरंडा ओबरा ने 17/ 04/ 19 को प्राथमिकी दर्ज कराई थी। जिसमें कहा था कि गांव में बराती आई थी। रात 10 बजे कुछ ग्रामीणों के साथ मेरा पुत्र बबलू दूबे भी नाच रहा था। नाचते समय अभियुक्त के साथ बबलू दूबे का विवाद हो गया था तो अभियुक्त ने देशी कट्टा से गोली मारकर बबलू दूबे को बुरी तरह से ज़ख्मी कर दिया। 

घायल बबलू दूबे क सदर अस्पताल से जमुहार अस्पताल गए। जहां से बेहतर इलाज के लिए बनारस जाते समय रास्ते में बबलू दूबे की मृत्यु हो गई थी। जप्ति सूची मनोज कुमार पांडेय पु. अ. नि.ओबरा ने बनाया था। 

औरंगाबाद से धीरेन्द्र

फिर चर्चा में आए नबीनगर विधायक और अंचलाधिकारी, लगा स्टेडियम के लिए तेतरहट गांव में जबरन भूमि पूजन कराने का आरोप

औरंगाबाद ; अपने कार्यों एवं बयानों को लेकर हमेशा चर्चा में बने रहने वाले नबीनगर के राजद विधायक डबलू सिंह एक बार फिर सुर्खियों में आ गए। इस बार वे जनहित के कार्यों को लेकर सुर्खियों में आए हैं और उन पर तेतरहट गांव में स्टेडियम बनाने के नाम पर तीन किसानों की जमीन को जबरन कब्जा कर भूमि पूजन करने का आरोप लगा है। हालांकि यह आरोप उन पर अकेले नहीं बल्कि इसमें नबीनगर के अंचलाधिकारी को भी शामिल किया गया है। 

आज गुरुवार के अपराहन तेतरहट गांव के किसान शंकर साव, संतोष साव एवं कन्हैया साव द्वारा डीएम के जनता दरबार में पहुंचकर एक आवेदन देते हुए उक्त जमीन को कब्जे से मुक्त कराने की मांग की गई है। 

डीएम को दिए गए आवेदन में किसानों ने बताया है कि उक्त जमीन महुआंव पंचायत के मौजा तेतरहट, खाता संख्या -100, प्लॉट नंबर - 262 रैयती भूमि है और उक्त भूमि रघुवीर साव के नाम से 8 बीघा जमीन 1357 फसली वर्ष 1950 से बंदोबस्त है। बंदोबस्ती के वर्ष से वर्ष 2023 तक उसका रिटर्न भी अध्ययन है और उक्त जमीन में दो कट्ठा जमीन बिक्री भी हुई है। मगर सरकार द्वारा वहां स्टेडियम निर्माण का आदेश दिया गया है। लेकिन विधायक एवं अंचलाधिकारी के द्वारा जबरन इस जमीन को कब्जे में लेकर भूमि पूजन कर दिया गया। 

कहा गया है कि यदि जमीन में स्टेडियम निर्माण होता है तो तीन परिवार भुखमरी के कागार पर आ जायेंगे। ऐसी स्थिति में उक्त जमीन को कब्जे से मुक्त कराकर तीन परिवारों को न्याय देने की कृपा करें। 

इधर इस मामले में विधायक डबलू सिंह एवं अंचलाधिकारी से बात करने की कोशिश की गई लेकिन उनसे संपर्क नही हो सका।

औरंगाबाद से धीरेन्द्र

औरंगाबाद में गजब का खेल : पुराने जेल से लाखों की संपत्ति की हुई चोरी, तिरंगे का भी हुआ अपमान, जेल अधीक्षक को नहीं है इसकी कोई खबर, पढ़िए पूरी

औरंगाबाद : बिहार के जहानाबाद जिले में 15 नवंबर 2005 को नक्सलियों ने हमला बोल जहानाबाद जेल ब्रेक को अंजाम दिया था। जिससे पूरा प्रदेश ही नहीं देश में भी हड़कंप मच गया था। लेकिन 19 साल बाद जो औरंगाबाद में हुआ है वह तो गजब का खेल है। खेल ऐसा हुआ कि जेल अधीक्षक को न तो घटना की अभी ठीक से तारीख मालूम है और न ही अपराधियों का कोई सुराग मिला है। बावजूद पुलिस अंधेरे में तीर दाग रही है, यानी लकीर जरूर पीट रही है। सुखद बात यह है कि यहां से कैदी भागे नही क्योकि मामला ही कुछ और है।

दरअसल महज 8 महीने पहले यानि कि 01 मई 2023 को जिले के पुराने जेल को नए बिल्डिंग जो मुफ्फसिल थाने के बगल में है वहां सारे कैदियों को शिफ्ट कर दिया गया। क्योंकि पुराने जेल में लगभग 400 कैदियों के रहने की जगह थी और इससे 4 गुना कैदी यहाँ रहा करते थे। 

पूराने जेल की देख रेख जेल अधीक्षक के जिम्मे थी और उन्होंने पुराने जेल को अभी हैंड ओवर भी नही किया था। इसी बीच चोरों ने जेल में लगे जेन सेट, महंगे बिजली उपकरण, पंखे, सोलर, वायरिंग में लगे तार की चोरी कर ली। यहां तक की लकड़ी के मोटे दरवाजे को भी जला डाला। हद तो यह है कि इसकी भनक जेल अधिक्षक को नहीं लगी और पूलिस के घर चोरों ने डाका डाल दिया। 

पूराने जेल में राष्ट्र की पहचान देने वाली तिरंगे का भी अपमान किया गया है। अपराधियों ने न केवल जेल गेट को फूंका है बल्कि थोक के भाव में लाखों के साजो सामान भी गायब और क्षतिग्रस्त किए है। इतना ही नही जेल प्रशासन की लापरवाही से देश की आन, बान और शान तिरंगे झंडें का भी अपमान हुआ है। 

जेल शिफ्ट करने के बाद जेल सुप्रीटेंडेंट सुजीत झा ने पुराने जेल की किसी तरह की भी सुध नहीं ली। उन्होंने पुलिस बल की कमी बताते हुए सुरक्षा में लगे जवानों को भी नए जेल में शिफ्ट करा देने बात कही। इधर चोरों ने पुराने जेल से लाखो की सरकारी संपत्ति उड़ा डाली। हद तो तब है कि जेल अधीक्षक मामले में अनजान बने रहें। 

जेल प्रशासन ने तो पुराने जेल को लॉक कर रखा था। कही से किसी के घुसने की गुंजाईश नही थी, लेकिन गुंजाईश बनाई गई। पहले पुराने जेल के मेन गेट के बगल में बने सिपाही बैरक की खिड़कियों की सरिया उखाड़ ली गई। फिर खिड़कियों के पल्ले उखाड़ लिए गए। मतलब पुराने जेल परिसर के अंदर जाने का चोर दरवाजा खुल गया।

वैसे तो शिफ्टिंग के बाद से पुराने जेल का मेन गेट रोज ही बंद नजर आता है लेकिन मीडियाकर्मियों की नजर अचानक से खुले गेट पर पड़ी। कैम्पस के अंदर कुछ हलचल दिखी। लिहाजा कौतूहल वश मीडियाकर्मी पुराने जेल परिसर के अंदर घुस गए। पता चला कि भवन निर्माण विभाग के लोग है, जो इस पूरे परिसर को किसी दूसरे सरकारी विभाग को सौंपे जाने के लिए सर्वे कर रहे है। इसके बाद जब मीडिया ने पूरे जेल परिसर का चप्पा चप्पा छान मारा। इसके बाद जो सब कुछ उजागर हुआ, वह अब सबके सामने है।

इस बारे में जब जेल अधीक्षक से बात की गई तो उन्होंने बताया की मुझे आपके मध्यम से चोरी की वारदात की जानकारी मिली है। मैंने आज ही प्राथमिकी दर्ज करवाई है। जब तिरंगे की अपमान की बात कही गई की आपके जेल में तिरंगे का अपमान किया गया है। तो उन्होंने किसी के द्वारा तिरंगे फेक देने की बात कही। जब पूछा गया की इसके लिए दोषी कौन है ? तब उन्होंने थाना प्रभारी को गस्ती न करने की बात कहकर अपना ठीकरा थाना प्रभारी के माथे पर फोड़ते नजर आए।

 

जब मामले को स्ट्रीट बज्ज की टीम ने संज्ञान में लिया और हर गतिविधि को कैमरे में कैद किया तब जेल सुप्रीडेंडे ने प्राथमिकी दर्ज़ करने की बात कहीं।

औरंगाबाद से धीरेन्द्र

अपहरण के आरोपी महिला समेत तीन अभियुक्त को कोर्ट ने दिया दोषी करार, 15 फरवरी को सुनाई जाएगी सजा

औरंगाबाद : आज़ व्यवहार न्यायालय औरंगाबाद में एडिजे सह स्पेशल पोक्सो कोर्ट ने कासमा थाना कांड संख्या 77/20 में निर्णय पर सुनवाई करते हुए एक महिला समेत तीन अभियुक्तों को दोषी करार दिया। 

स्पेशल पीपी शिवलाल मेहता ने बताया कि अभियुक्त रोहित कुमार ग्राम लोहरा,सोनु कुमार ग्राम लोहरा, और मानमति देवी ग्राम चंद्रोली , थाना कासमा को आज भादंवि के विभिन्न धाराओं और पोक्सो एक्ट में दोषी ठहराया गया है। वहीं सज़ा के बिन्दु पर सुनवाई की तिथि -15/02/25 निर्धारित किया गया है।  

अधिवक्ता सतीश कुमार स्नेही ने बताया कि अभियुक्त सोनू कुमार काराधीन है, जबकि रोहित कुमार और मानमति देवी के बंधपत्र विखंडित कर आज जेल भेज दिया गया है। 

उन्होंने आगे बताया कि प्राथमिकी सूचक पीड़िता के पिता ने 13/09/20 को बताया था कि शादी और ग़लत काम के नियत से तीनों अभियुक्तों ने 08/09/20 को कासमा बाजार से बच्ची का अपहरण कर लिया था। 

औरंगाबाद से धीरेन्द्र

बांध से बरामद हुआ नर कंकाल, इलाके में मचा हड़कंप

औरंगाबाद: जिले के नगर थाना स्थित शाहपुर मुहल्ले के बांध से एक नर कंकाल पुलिस ने बरामद हुआ। नर कंकाल मिलने से शहर में हड़कंप मच गया। नर कंकाल देखने के लिए लोगो की भीड़ उमड़ पड़ी। पुलिस नर कंकाल के ऊपर पड़े कपड़े से पहचान कराने की कोशिश में जुट गई है। पुलिस समझना चाह रही है कि आखिर यह किसका शव है। 

बताया जाता है कि कुछ बच्चे बांध के पास मैदान में क्रिकेट खेल रहे थे। खेलने के क्रम में बच्चों की नजर वहां पड़े कंकाल पर पड़ी और उनकी चीख निकल पड़ी। फिर उन बच्चों ने आवाज लगाकर स्थानीय लोगों को बुलाया। काफी लोग वहां इकट्ठा हो गए। स्थानीय जब नजदीक गए तो देखा कि बांध पर पड़े कंकाल के हाथ में एक नीडल लगा हुआ है।

लोगों ने आशंका जताई कि व्यक्ति बीमार होगा और स्लाइन चढ़ाने के दौरान उसकी मौत हो गई होगी,क्योंकि उसके हाथ में ड्रिप निडिल लगा हुआ था। नर कंकाल की सूचना जंगल में आग की तरह फैल गई। कुछ ऐसे परिवार भी वहां आ पहुंचे जिनका सगा महीनों से गायब है। मगर ऐसी अवस्था में शव की पहचान पाना नामुमकिन था। 

भीड़ ने इसकी सूचना नगर थाने की पुलिस को दी। सूचना मिलते ही एएसआई चंदन अपने दल बल के साथ मौके पर पहुंचे और कंकाल को जब्त कर लिया। वहीं पुलिस मामले की जांच मे जुटी है। 

औरंगाबाद से धीरेन्द्र

काराकाट सांसद महाबलि सिंह ने संसद में बिहार में बंद पड़ी चीनी मिलों को चालू करने की मांग को प्रमुखता से उठाया

औरंगाबाद : काराकाट के सांसद महाबलि सिंह ने बिहार में बंद पड़ी चीनी मिलों को चालू करने की मांग को प्रमुखता से उठाया है। श्री सिंह ने बुधवार को लोकसभा के चालू बजट सत्र में यह मांग रखते हुए कहा कि बिहार में आजादी के बाद 35 चीनी मिले काम करती थी लेकिन धीरे-धीरे 26 चीनी मिले एक-एक कर बंद हो गई। बिहार में अब मात्र 9 चीनी मिलें चालू है। मैं मंत्री महोदया से जानना चाहता हूं कि बिहार में बंद चीनी मिलों को वें चालू कराना चाहती है। 

सांसद के प्रश्न का उतर देते हुए खाद्य-उपभोक्ता मामले एवं सार्वजनिक वितरण विभाग की राज्यमंत्री साध्वी निरंजन ज्योति ने कहा कि चीनी मिल लगाना केंद्र सरकार का विषय नही है। वर्ष 1998 में इसे केंद्र के विषय से बाहर कर दिया गया था। सदस्य ने ही स्वीकार किया है कि चीनी मिलों को राज्य सरकार ने ही लगाया था। 

मंत्री के जवाब पर सांसद ने पूरक सवाल करते हुए कहा कि प्रधानमंत्री चीनी उद्योगों के लिए काम करने की बात कह रहे हैं। वही मंत्री महोदया कह रही हैं कि चीनी मिलें लगाना राज्य सरकार का काम है। इसके के लिए केंद्र सरकार को काम करने की जरूरत है। 

कहा कि किसान अथक परिश्रम कर गन्ना का उत्पादन करते है। उन्हे सही मूल्य का भुगतान नही होता है। चीनी मिलों को गन्ना देने के बाद किसान भुगतान के लिए साल-दो साल तक चक्कर लगाते रहते है। क्या सरकार गन्ना किसानों को सही समय पर भुगतान के लिए कानून बनाने का विचार रखती है।

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उत्क्रमित उच्च विद्यालय में छात्र की हुई मौत, मचा हड़कंप

औरंगाबाद : सदर प्रखंड के ओरा गांव स्थित उत्क्रमित उच्च विद्यालय ओरा में पढ़ाई कर रहे एक छात्र की मौत बुधवार की दोपहर हो गई। मृतक छात्र की पहचान गांव के ही संतोष प्रजापति के 13 वर्षीय पुत्र कुंदन कुमार के रूप में की गई है। 

मामले की जानकारी देते हुए ओरा पंचायत के पूर्व मुखिया सह वर्तमान जिला पार्षद अनिल यादव ने बताया कि कुंदन प्रतिदिन की तरह आज भी विद्यालय पढ़ने आया था। लंच करने के बाद वह कक्षा में पढ़ाई कर रहा था तभी पढ़ते पढ़ते अचानक बेंच से लुढ़क गया। आनन फानन में इसकी सूचना परिजनों को देते हुए उसे इलाज के लिए सदर अस्पताल लाया गया। मगर चिकित्सकों ने उसके नब्ज को टटोलते ही मृत घोषित कर दिया। 

उन्होंने बताया कि परिजनों से यह मालूम हुआ कि दो तीन दिन से इसकी तबियत खराब थी और फीवर लग रहा था। लेकिन आज तबियत में सुधार आने के बाद स्कूल आया और उसकी मौत हो गई। जिला पार्षद ने ठंड से मौत की आशंका जताई है। 

फिलहाल पुलिस ने मृतक के शव का पोस्टमार्टम कराकर उसके शव परिजनों को सुपर्द कर दिए है। अब पोस्टमार्टम रिपोर्ट आने के बाद ही मौत के कारणों की सही जानकारी उपलब्ध हो पाएगी।      

औरंगाबाद से धीरेन्द्र

10 फरवरी से सर्वजन दवा सेवन (आइडीए) अभियान की होगी शुरुआत, इतने लोगों को फाइलेरिया रोधी दवा खिलाने का रखा गया है लक्ष्य

औरंगाबाद : आगामी 10 फरवरी से जिले के सभी प्रखंडों में सर्वजन दवा सेवन (आइडीए) अभियान की शुरुआत होगी। इस वर्ष पूरे जिले में 26, 28, 968 स्वस्थ लोगों की अभियान के तहत फाइलेरिया रोधी दवा का सेवन कराने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है। यह अभियान 10 फरवरी से शुरू होकर अगले 17 दिनों तक चलेगा। जिसमें शुरुआत के तीन दिनों तक जिले के सभी सरकारी स्कूलों और आंगनबाड़ी केंद्रों पर बूथ लगाकर आशा दीदी के द्वारा दवा खिलायी जाएगी। 

उक्त दवा का सेवन सभी बच्चे मध्याह्न भोजन खाने के बाद करेंगे। इसके बाद आशा दीदी के अलावा टीम के अन्य सदस्य घर-घर जाकर लोगों को फाइलेरिया रोधी दवा खिलाएंगी। उक्त बातें बुधवार को सिविल सर्जन सभागार में सीफार के द्वारा आयोजित मीडिया कार्यशाला में अपर मुख्य चिकित्सा पदाधिकारी सह जिला वेक्टर जनित रोग नियंत्रण पदाधिकारी डॉ. किशोर कुमार ने कही।

अभियान के दौरान 26, 28, 968 लोगों को दवा खिलाने का है लक्ष्य 

डॉ. किशोर कुमार ने बताया कि इस वर्ष पूरे जिले के सभी प्रखंडों में 26, 28, 968 लोगों को फाइलेरिया रोधी दवा सेवन का लक्ष्य निर्धारित किया गया है। इसके लिए ड्रग एडमिनिस्ट्रेटर की टीम में कुल 1547 स्वास्थ्य कर्मी और आशा दीदी तथा सेविका और सहायिका शामिल रहेंगी। इसके अलावा इनकी 156 सुपरवाइजर भी बनाए गए हैं। साथ ही दवा सेवन के दौरान किसी भी प्रखंड से कोई उल्टी या मिचली तथा चक्कर देने की शिकायत मिलती है तो, उसकी निगरानी के आरआरटी टीम (रैपिड रेस्पॉन्स टीम) के सदस्य मौके पर पहुंचकर उसकी देखभाल करेंगे। इसके अलावा सीफार संस्था के द्वारा पेशेंट प्लेटफार्म सदस्य के द्वारा भी कम्युनिटी के बीच जागरूकता अभियान चलाकर दवा सेवन के लिए जागरुकता अभियान चलाया जा रहा है। जो अभियान की सफलता के लिए काफी अहम कड़ी साबित हो रहा है। 

उन्होंने कहा कि अभियान की सफलता के लिए मीडिया कर्मियों की भूमिका काफी अहम है। क्योंकि आपके माध्यम से सी अभियान का संदेश जन-जन तक पहुंचेगा। तभी हम अपने जिले से फाइलेरिया उन्मूलन का लक्ष्य हासिल कर सकते हैं। इसलिए इस अभियान को सफल बनाने के लिए हम सभी को एकजुटता के साथ काम करना है। कार्यशाला में भीडीसीओ हर्षवर्धन कुमार, पीसीआई के जिला समन्वयक विशाल कुमार चौहान, डब्ल्यूएचओ के एक्सटर्नल मानीटर मुकेश कुमार, पेशेंट प्लेटफार्म के सदस्य संजय कुमार गुप्ता, सीफार के प्रतिनिधि जफर इकबाल समेत अन्य स्वास्थ्य कर्मी मौजूद थे।

जिले में 26.28 लाख लोगों को खिलाई जाएगी डीईसी व अल्बेंडाजोल की दवा :ध्यान रखने योग्य जानकारी

 

- खाली पेट दवा का सेवन नहीं किया जाना है।

- दवा स्वास्थ्य कर्मियों के सामने ही खाना जरूरी है।

- अल्बेंडाजोल की गोली चबाकर खाई जानी है।

- फाइलेरिया से सुरक्षित रहने के लिए अपने घरों के आसपास गंदा पानी इकट्ठा न होने दें।

- सोते समय मच्छरदानी का उपयोग करें।

फाइलेरिया के प्रति जागरूकता जरूरी

 

जिला अपर मुख्य चिकित्सा पदाधिकारी सह जिला वेक्टर जनित रोग नियंत्रण पदाधिकारी डॉ किशोर कुमार ने बताया फाइलेरिया क्यूलेक्स मच्छर के काटने से होने वाला एक गंभीर संक्रामक बीमारी है जिसे आमतौर पर हाथी पांव भी कहा जाता है। कोई भी व्यक्ति किसी भी उम्र में फाइलेरिया से संक्रमित हो सकता है। फाइलेरिया के प्रमुख लक्षण हाथ और पैर या हाइड्रोसिल (अण्डकोष) में सूजन का होना होता है। प्रारंभिक अवस्था में इसकी पुष्टि होने के बाद जरूरी दवा सेवन से इसे रोका जा सकता है। इसके लिए लोगों में जागरूकता की आवश्यकता है। लोगों को फाइलेरिया के लिए जागरूक करने में मीडिया की सशक्त भूमिका होती है।

औरंगाबाद से धीरेन्द्र

पूर्व विधायक सुरेश मेहता की पुत्र वधू बनी पैक्स अध्यक्ष, निकटम प्रतिद्वंदी को 62 मतों से दी मात

औरंगाबाद : जिले के सदर प्रखंड के बेला पैक्स से राजद के पूर्व विधायक सुरेश मेहता की पुत्र वधू हेमलता मौर्या पहली बार पैक्स अध्यक्ष बनी है।

उन्होंने अपने निकटम प्रतिद्वंदी सुनैना देवी को 62 मतों से पराजित की है। 

चुनाव परिणाम आने के बाद निर्विचित हुई हेमलता मौर्या के पति शिवपूजन मेहता ने बताया कि पिछले कई वर्षो से हम इस पैक्स में किसानों को सेवा देते आ रहे है। इसबार जनता ने हमे पुनः क्षेत्र के विकास करने का मौका दिया है।

सरकार के द्वारा जो किसानों के लिए योजना चलाई जा रही हैं उसे हम धरातल पर उतरेंगे। सही मूल्य पर धान व खाद की आपूर्ति की जाएगी।

औरंगाबाद से धीरेन्द्र