cgstreetbuzz

Aug 31 2024, 16:21

भिलाई में पार्षद पुत्र की गुंडागर्दी : जोन कार्यालय में मचाया हंगामा, दस्तावेज फाड़े, इंजीनियर को दी जान से मारने की धमकी, केस दर्ज

दरअसल यह मामला सुभद्रा सिंह के वार्ड में सौंदर्यीकरण के काम में हुए खर्च के पैसों की लेनदेन को लेकर था. बताया जा रहा है कि 15 अगस्त की तैयारी के चलते वार्ड में मरम्मत के कुछ काम होने थे और इसी वक्त ठेकेदार शहर से बाहर था. इसके बाद सब इंजीनियर ने ठेकेदार से पार्षद के बेटे की बात कराई और इसी बीच मरम्मत का काम किया गया. इसके एवज में ठेकेदार को पार्षद के बेटे को पैसे देने थे, लेकिन अब पैसे दिलवाने का दबाव पार्षद सुभद्रा सिंह का बेटा सब इंजीनियर पर बनाने लगा.

सब इंजीनियर दीपक देवांगन का कहना है कि दोनों के बीच बातचीत पहले ही हो चुकी थी और वह पैसे के लेनदेन के किसी भी मामले में बीच में नहीं है. फिलहाल पुलिस ने सब इंजीनियर की शिकायत पर मामला दर्ज कर लिया है. भिलाई नगर सीएसपी सत्यप्रकाश तिवारी का कहना है कि पीड़ित इंजिनियर की शिकायत पर शासकीय कार्य में बाधा और शासकीय सेवक को धमकी देने, दस्तावेज फाड़ने का मामला दर्ज किया गया है. फिलहाल दोनों आरोपी फरार हैं.

Streetbuzznews

Aug 28 2024, 16:24

CPL Diagnostics Pvt. Ltd. Celebrates 7th Foundation Day with Fusion of Science and Culture.

 

The 7th Foundation Day of CPL Diagnostics Pvt. Ltd., a forerunner in laboratory diagnostics, was celebrated with much fanfare on Sunday, August 18th, 2024, at the Utsav Mancha Auditorium in Kankurgachi, Kolkata. It is indeed a turning point in the company's journey, reflecting its doctrine of excellence in healthcare with an eclectic mix of scientific sessions and vibrant cultural performances.

The "Marking Milestones of Excellence" program was inaugurated at 2:30 PM with a scintillating cultural dance performance by Ms. Deeksha Gupta, which set the very tone of celebrations for the day. Dr Tarun Roy, MD, DNB, Consultant Pathologist, CPL Diagnostics Pvt. Ltd. welcomed the audience, including doctors and business associates, as he went down memory lane on the company's seven-year journey and its achievements.

After the welcome address, Dr M.M. Ghatak, MD, Founder and Director of the Medical Rehabilitation Centre, Kolkata, delivered the keynote speech. He praised CPL Diagnostics for its contribution to the health sector, mainly diagnostic services, and called for maintaining high standards in the industry.

Dr. Koushik Ray, PhD (Marketing), Founder & Director of CPL Diagnostics Pvt. Ltd., updated the audience about the company's achievements and its future goals by reiterating the mission of CPL Diagnostics: 'one million precise, real-time diagnostic reports in 2024', while projecting a vision to lead this industry by integration with advanced technologies such as Artificial Intelligence, Machine Learning, Robotics etc.

The following scientific sessions were quite informative and interesting. Dr Anupam Basu, Professor of Molecular Biology and Human Genetics Laboratory, Burdwan University, and Former Visiting Fellow of the Department of Bioinformatics, Indian Institute of Science (IISc), Bangalore, and Postdoctoral fellow of the Department of Cell Biology and Physiology, School of Medicine, University of New Mexico, USA, a leading scientist, delivered his lecture on the hemoglobinopathy and Next-Generation Sequencing. 

Besides the scientific deliberations, a cultural function, "Rituranga," was conceptualised as an amalgamation of music and dance items that celebrated the mosaic of richness and diversity in Indian culture. Indeed, this provided a perfect counterbalance to the scientific rigour of the day and once more reiterated CPL Diagnostics' commitment to scientific excellence and community engagement in equal measure.

The program concluded with refreshments, which provided a platform for networking and assimilation of the day's deliberations and performances. CPL Diagnostics Pvt. Ltd. is deeply grateful to all delegates who spared their valuable time to participate in the Foundation Day celebrations.

In its steps ahead, CPL Diagnostics remains committed to healthcare diagnostics and setting new benchmarks. The company's core objectives revolve around innovation, quality, and patient care, driving this success story through which CPL Diagnostics became a trusted name in Diagnostics across eastern India.

Facebook link - https://www.facebook.com/share/HGH1fWQnw6ZDUg7x/?mibextid=qi2Omg

cgstreetbuzz

Aug 24 2024, 16:38

सेवानिवृत्त जज इंदर सिंह उबोवेजा बने छत्तीसगढ़ के प्रमुख लोकायुक्त, अधिसूचना जारी …

राज्यपाल के आदेशानुसार, छत्तीसगढ़ लोक आयोग अधिनियम, 2002 की धारा 3 की उपधारा (5) के तहत प्रदत्त शक्तियों का उपयोग करते हुए यह नियुक्ति की गई है. इंदर सिंह उबोवेजा, जो पूर्व में बिलासपुर उच्च न्यायालय के न्यायाधिपति रह चुके हैं. 22 अगस्त, 2024 से अपने नए पद का कार्यभार संभालेंगे.

बता दें कि प्रमुख लोकायुक्त का पद लंबे समय से खाली पड़ा था. इस पद पर पहले टीपी शर्मा नियुक्त थे, जिनका कार्यकाल सितंबर 2023 में समाप्त हो गया था. तब से यह पद खाली था. जिसके बाद अब बिलासपुर हाईकोर्ट के सेवानिवृत्‍त जज इंदर सिंह उबोवेजा को इस पद के लिए नियुक्त किया गया है.

cgstreetbuzz

Aug 23 2024, 15:05

सीएम साय की पहल : 800 सरकारी स्कूलों में स्किल एजुकेशन शुरू, 1,600 शिक्षकों को मिलेगा प्रशिक्षण …

इस समझौते के तहत, पहले दो शैक्षणिक वर्षों में 800 सरकारी स्कूलों में स्किल एजुकेशन को लागू किया जाएगा. इस प्रक्रिया में 1,600 शिक्षकों को प्रशिक्षण दिया जाएगा, ताकि वे 40,000 छात्रों, जो कक्षा 6 से 10 तक के होंगे, को स्किल और जीवन कौशल शिक्षा प्रदान कर सकें. कार्यक्रम की शुरुआत कांकेर और कोंडागांव से होगी और इसे धीरे-धीरे राज्य के सभी 33 जिलों में फैलाया जाएगा.

मैजिक बस इंडिया फाउंडेशन के CEO, जयंत रस्तोगी, ने कहा कि स्किल एजुकेशन किशोरों के सशक्तिकरण और उनकी शिक्षा के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण है. मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने आदिवासी क्षेत्रों के बच्चों के लिए मातृभाषा में प्राथमिक शिक्षा देने का भी निर्देश दिया है, जिससे उनकी सांस्कृतिक पहचान और शिक्षा की गुणवत्ता में सुधार हो सके.

छत्तीसगढ़ सरकार का यह प्रयास, विशेषकर दुर्गम आदिवासी इलाकों के बच्चों के लिए, विकसित भारत के निर्माण में एक महत्वपूर्ण क़दम है. स्कूली शिक्षा में स्किल एजुकेशन के नए अवसर देकर, यह कदम राज्य को सशक्त करेगा और देश के विकास में भी अहम भूमिका निभाएगा. युवा पीढ़ी नई तकनीकों और ज्ञान से लैस होकर भविष्य की चुनौतियों का सामना करने के लिए तैयार होंगे.

Shashikant34

Aug 23 2024, 00:16

आरक्षण

आरक्षण कोई मुद्दा नही था। न ही इससे किसी को कोई दिक्कत थी। इसे बीजेपी द्वारा प्रस्तावित राजनीतिक मुद्दा बनाया गया वोट बैंक के लिए। जनता के बीच प्रोपेगंडा फैलाया गया कि,आरक्षण के कारण जेनेरल केटेगरी वालो की नौकरी में सेंधमारी हो रही है। जेनेरल केटेगरी वालो की नौकरी आरक्षण वाले खा रहे है। बगैरा-बगैरा। जबकि sc/st से ज्यादा आरक्षण जेनेरल केटेगरी को मिलता हैं। 100 में 50.5% जेनेरल केटेगरी वालो को मिलता है। बाकी का 49.5% sc/st और obc को मिलता है। आधे से ज्यादा आरक्षण तो जेनेरल केटेगरी वाले ले रहे और इल्जाम sc/st पर लगा रहे की वे लोग उनकी नौकरी/हिस्सेदारी खा रहे है। यह बिल्कुल तर्कहीन और तथ्यहीन बात है। महीन बात यह है कि,सवर्णो को sc/st का आगे बढ़ना चुभता है। जिसे वो किसी भी हाल में खत्म करना चाहते है।

आरक्षण तो सिर्फ सहारा है। चलना खुद पडता है। आरक्षण ठिक उस walkar की तरह है। जिसके सहारे एक छोटा बच्चा चलना सिखता है। उसी आरक्षण रूपी walkar से दलित/आदिवासी/पिछडा लोग आज अपने समाज मे चलना सीख रहे है। जिस दिन ये लोग पूर्ण रूप से चलना सीख जायेगे उस दिन खुद-ब-खुद walkar रूपी आरंक्षण को भुला देगे। जैसे बच्चा जब अपने पैरो से चलना शुरू कर देता है उस दिन से वह अपने walkar को हाथ तक नही लगाता।

आरक्षण एक व्यवस्था है समाज मे समानता लाने का। यह आरक्षण दलित/आदिवासी/पिछडो के विकास का संसाधन है। और संसाधन के बिना विकास संभव नही। देश का विकास करने के लिये प्रत्येक व्यक्ति का विकास करना जरूरी है। व्यक्ति के विकास से ही एक अच्छे समाज का निर्माण होगा। जहां खुशियां होगी,अमन-चैन और सुकुन होगा। लोगो के बीच नफरत नही मोहब्बत होगी।

समाज मे,अपने आस-पास किसी की मदद करना या किसी को सहारा देना गलत है क्या? समाज मे दलित/आदिवासी/पिछडे लोगो को आरक्षण का सहारा देकर उन्हें अपने पैरों पर खडा होने लायक बनाया जा रहा तो क्या इसमें कोई बुराई है?

आजकल अकसर सुनने को मिलता है- आरक्षण वाला डॉक्टर/आरक्षण वाला इंजीनियर। जब लोग RIMS(Rajendra Institute of Medical Science,Ranchi) पहुचते है तब कोई भी यह सवाल नही करता कि कौन आरक्षण वाला डॉक्टर है और कौन बिना आरक्षण वाला?

मैने फेसबुक पर एक post देखा था। "जिसमे चार लड़कों की तस्वीर थी। जहां तीन लडको को सोता हुआ दिखाया गया था और उनके उपर लिखा था- Sc/st/obc। चौथे लडके को पढ़ते हुए दिखाया गया था और उसके उपर लिखा था- General."

उस post का मतलब यही था कि, जेनेरल केटेगरी के लडके रात-दिन पढाई करके डॉक्टर/इंजीनियर बनते है और sc/st/obc केटेगरी के लडके सोये-सोये डॉक्टर/इंजीनियर बन जाते है। इसलिये ऐसे डॉक्टर/इंजीनियर न तो अच्छा इलाज कर सकते है और ना ही अच्छा काम। ताजुब की बात यह है कि,पढे-लिखे लोग भी ऐसे post को share nd like करते है। जबकि हकीकत इसके उलट है।

आरक्षण केवल sc/st/obc candidates को medical/engineering college तक पहुचने मे मदद करता है ना कि डॉक्टर/इंजीनियर की डिग्री दिलाने मे।

डॉक्टर/इंजीनियर बनने के लिये sc/st/obc candidates को भी उतनी ही मेहनत करनी पड़ती है जितना जेनेरल केटेगरी वाले करते है। फिर भी लोग कहते है- आरक्षण वाला डॉक्टर/ आरक्षण वाला इंजीनियर!

एक तरफ बहुत से लोग है जो आरक्षण को खत्म करने की वकालत करते है। वही दूसरी तरफ मोदी सरकार ने सवर्ण को भी दस प्रतिशत का आरक्षण दे दिया है। जबकि उन्हें आरक्षण की नही,economic support की जरूरत है। क्योकि सवर्ण लोग बौद्धिक और तार्किक क्षमता से निपुण होते है। जबकि sc/st/लोगो की बौद्धिक और तार्किक क्षमता सवर्णो की तुलना में कम होती है। पर इसका मतलब यह कतई नही है कि, sc/st के लोगो को मौका मिलने पर अपनी बौद्धिक और तार्किकि क्षमता को विकसित नही कर सकते। हज़ारो हज़ार sc/st लड़को ने डॉक्टर/इंजीनियर बन कर साबित भी किया हैं। बस उन्हें मौका मिलना चाहिए। और यह मौका उन्हें आरक्षण के द्वारा मिलता है। बहुत से लोगो का यह मानना है कि,जो लोग आरक्षण का लाभ लेकर सुखी-सम्पन्न हो चुके है। उन्हें आरक्षण का लाभ नही लेना चाहिए। पर महीन बात यह है कि,आरक्षण का संबंध इनकम से नही बल्कि सामाजिक असमानता और इंटेलिजेंस(बौद्धिक एवं तार्किक क्षमता) से है। इसकी क्या गारंटी है कि,आरक्षण से डॉक्टर/इंजीनियर बनने वाले का बेटा/बेटी बिना आरक्षण के डॉक्टर/इंजीनियर बन पाएंगे? कुछ लोग यह भी कहते है कि,आरक्षित वर्ग के कुछ खास लोग तथा कुछ खास जातियां ही आरक्षण का लाभ उठा रही है। जिसके कारण बाकी लोग आरक्षण का लाभ नही उठा पा रहे। अब यह कैसे संभव है?

आरक्षित वर्ग(sc/st) के जो भी पढ़े-लिखे लोग है। वे सभी प्रतियोगिता परीक्षाओं में शामिल होते है। जिसने अच्छे से पढ़ाई-लिखाई किया,वो सफल होते है। जिसने अच्छे से पढ़ाई नही किया,वे सफल नही हो पाते। sc/st को भी सफल होने के लिए पढ़ना पड़ता है। मेहनत करनी पड़ती है। ऐसा नही है कि,आरक्षण के नाम पर बगैर पढ़े-लिखे ही नौकरी मिल जाएगी। आरक्षण का लाभ वही लोग उठाते है,जो पढ़ते है। मेहनत करते है। इसलिए यह कहना गलत है कि,आरक्षण का लाभ केवल खास जाती या खास लोग उठा रहे है।

हज़ारो साल के शोषण ने sc/st के DNA को विकृत कर दिया है। सवर्णो का यह शोषण हिरोशिमा और नागासाकी पर गिराए गए परमाणु बम से भी ज्यादा खतरनाक है। जिसका नतीजा है कि, आज भी sc/st के बच्चे सवर्णो का मुकाबला नही कर पाते है। इसी विकृति को दूर करने के लिए आरक्षण नाम का एन्टी डॉज लाया गया। ताकि sc/st केटेगरी के लोग सवर्णो की बराबरी कर सके। पर सवर्णो को ये बराबरी रास नही आती। इसलिए ये लोग हमेशा से आरक्षण का विरोध करते आये है। मेरे खयाल से आरक्षण तब तक लागू रहना चाहिए जब तक sc/st की बौद्धिक और तार्किक क्षमता सवर्णो के बराबर न हो जाए। आरक्षण भीख नही,सवर्णो द्वारा किये गए शोषण का मुआवजा है। जो आज सवर्णो को भारी पड़ रहा है।

सवर्णो में भी बहुत से ऐसे लोग है जो आर्थिक रूप से कमजोर होने के कारण अपना विकास नही कर पाते। सरकार वैसे लोगो को schoolarship दे ताकि वे लोग भी अपना विकास कर समाज मे सम्मान पा सके।

सवर्ण को schoolarship रूपी walkar की जरूरत है न की आरक्षणरूपी walkar की।

रिजर्वेशन शुड कंटिन्यू टिल द एन्ड ऑफ कास्टिसम।

cgstreetbuzz

Aug 06 2024, 08:46

भ्रष्टाचार के खिलाफ ACB/EOW की कार्रवाई, 30 हजार रिश्वत लेते प्रभारी SDO को रंगे हाथों पकड़ा
ACB/EOW की टीम ने प्रभारी SDO सौरभ ताम्रकार को 30 हजार रिश्वत लेते रंगे हाथों गिरफ्तार किया है. उसने गौठान का बिल पास करने के एवज में सरपंच से रिश्वत की मांग की थी. इसकी शिकायत पर ACB/EOW ने कार्रवाई की. आरोपी सौरभ ताम्रकार के विरुद्ध पीसीएक्ट की धारा 7 के तहत कार्रवाई की गई.

India

Aug 05 2024, 14:18

बाजार में हाहाकार, मंदी की आशंका में बाजार में जोरदार गिरावट, मिनटों में लाखों करोड़ स्वाहा

#share_market_crash

अमेरिका में मंदी का खतरा, ईरान-इजरायल में बढ़ते तनाव के चलते भारतीय बाजारों में आज जबरदस्त बिकवाली देखने को मिल रही है।दो दिन की छुट्टी के बाद जैसे ही बाजार खुला सेंसेक्स, निफ्टी में बड़ी गिरावट दर्ज की गई। प्री ओपनिंग में सेंसेक्स 4100 अंक तक गिर गया, वहीं निफ्टी में 600 अंक कर गिरावट आई। कुछ ही मिनटों में निवेशकों के 10 लाख करोड़ रुपये खास हो गए। भारत में बीएसई सेंसेक्स में कारोबार के दौरान करीब 2,600 अंक की गिरावट आई और निवेशकों के 17 लाख करोड़ रुपये एक झटके में स्वाहा हो गए। दरअसल, अमेरिका ने शुक्रवार को बाजार बंद होने के बाद जॉब से जुड़े आंकड़े जारी किए। इसके मुताबिक देश में जुलाई में लोगों को उम्मीद के मुताबिक नौकरियां नहीं मिली और बेरोजगारी दर तीन साल के उच्चतम स्तर पर पहुंच गई। इससे अमेरिका में एक बार फिर मंदी की आशंका तेज हो गई है। 

दुनिया की ताकतवर अर्थव्यवस्था अमेरिका में मंदी की आहट ने बाजार का मूड बिगाड़ दिया। इस खबर ने वैश्विक स्तर पर निवेशकों की जोखिम उठाने की क्षमता को गंभीर झटका दिया, जिसका असर बाजार पर दिखा। वैश्विक बाजार में भारी बिकवाली के बीच सोमवार की सुबह भारतीय शेयर बाजार में हाहाकार दिखा और सेंसेक्स अपनी पिछली क्लोजिंग 80,981.95 से 2,686.09 अंक टूटकर 78,295.86 के निम्नतम स्तर तक चला गया। शुरुआती काराबार के दौरान टाइटन के शेयरों में 9% तक की गिरावट दिखी।इस बीच, बीएसई पर सभी सूचीबद्ध कंपनियों का बाजार पूंजीकरण 10.24 लाख करोड़ रुपये घटकर 446.92 लाख करोड़ रुपये रह गया। सोमवार को रुपया अपने सर्वकालिक निचले स्तर 83.7525 पर पहुंच गया।

जापान के शेयर मार्केट में इतिहास की सबसे बड़ी गिरावट देखने को मिली है। बेंचमार्क निक्केई 225 इंडेक्स 4,451 अंक की गिरावट के साथ बंद हुआ। यह अंक के हिसाब से इसकी अब तक की सबसे बड़ी गिरावट है।निक्केई 225 इंडेक्स 12 फीसदी से अधिक गिरावट के साथ बंद हुआ। जुलाई की शुरुआत से यह 24 फीसदी गिर चुका है। जापान और साउथ कोरिया में भारी गिरावट के बीच कुछ समय के लिए ट्रेडिंग रोकनी पड़ी।

एशिया-पैसिफिक के दूसरे बाजारों में भी भारी गिरावट देखने को मिली। कोरिया एक्सचेंज के बेंचमार्क Kospi में आठ फीसदी से ज्यादा गिरावट के बाद कुछ देर के लिए ट्रेडिंग रोकनी पड़ी। ताइवान का Taiex भी 8.4% गिरकर बंद हुआ जो इसकी अब तक की सबसे बड़ी गिरावट है। हॉन्ग कॉन्ग के Hang Seng इंडेक्स में 2.6% और चीन के Shanghai Composite में 1.2% गिरावट आई है।

cgstreetbuzz

Aug 03 2024, 09:02

शराब के नशे में अधिकारी के साथ अभद्रता करने वाला प्रधानपाठक निलंबित
बता दें कि पारसराम वर्मा मनेंद्रगढ़ विकासखंड के प्राथमिक शाला बाला में प्रधानपाठक के पद पर पदस्थ था. उन्होंने विद्यालय में शराब के नशे में अधिकारी और कर्मचारियों के साथ अभद्रता की थी. इसकी शिकायत पर प्रधानपाठक को निलंबित कर दिया गया है. निलंबन अवधि में वर्मा का मुख्यालय कार्यालय विकासखण्ड शिक्षा अधिकारी भरतपुर जिला मनेन्द्रगढ़-चिरमिरी-भरतपुर नियत किया गया है.

Streetbuzznews

Jul 15 2024, 23:17

From Taj Lands End to Every Feed: Influence Exchange Confex and Awards Becomes the Viral Talk of the Town with Grand Success Stories

Mumbai, 12th July: The Influence Exchange Confex and Awards, held at the prestigious Taj Lands End in Bandra West, Mumbai, emerged as a monumental success, leaving a lasting impression on all attendees. The event became the talk of the town as prominent content creators and marketers gathered to celebrate excellence and innovation in the digital realm. Watch complete pics and videos on Instagram src="https://streetbuzz.co.in/newsapp/storage/attachments/1/669560b9ee2c1.png">

The Influence Exchange Confex and Awards Series is renowned for offering a platform where thought leaders can share knowledge, exchange ideas, and explore emerging trends in marketing and influencer engagement. This year's event brought together industry leaders, influencers, marketers, and professionals from diverse sectors, all under one roof.

The evening was graced by the presence of Manisha Kapoor, CEO and SG of The Advertising Standards Council of India, who served as the chief guest. Her insights and wisdom set the tone for a night of celebration and recognition.

The highlight of the evening was the awards ceremony, where the following content creators were honored for their outstanding contributions in various categories:

- Best Marketing & Hospitality Influencer of the Year: Rajveer Singh

- Best Financial Influencer Award: Shreya Jaiswal

- Best Health & Wellbeing Influencer of the Year: Bhavna Harchandrai

- Food/Culinary Influencer of the Year: Parul Gupta

- Educational Content Creator of the Year: Shrreya Siddharth Shah

- Mom Influencer of the Year: Priya Ahuja Rajda

- Entertainment Maven of the Year: Maera Mishra

- Best Art & Photography Influencer: Nishad Naik

- Gaming Influencer of the Year: Nitesh Meena

- Social Media Engagement Champion: Prerna Panda

- Creative Visual Content Creator: Saurav Haldar

- Mega/Celeb-Influencer of the Year: Siddharth Nigam

- Macro-Influencer of the Year: Kajal Jadhav

- Micro-Influencer of the Year: Nikita Pawar

- Nano Influencer of the Year: Aarti Dharampuriya

- Best Fashion and Style Influencer of the Year: Vivek Keshari

- Best Travel Influencer of the Year: Aavi Vadekar

- Best Beauty Influencer of the Year: Hitika Sachdev

- Most Promising Influencer of the Year: Irfan Shaukat

- Blogger of the Year: Ankita Chamria

- Youtuber of the Year: Raju Bharti

Recognizing Marketing Excellence : In addition to content creators, the event also celebrated the achievements of top brands and marketers:

- Marketing Leader of the Year: Sonia Paul, Cluster Director of Marketing, Hyatt Hotels

- Branding Leader of the Year: Lakhbir Singh, Brand Head, Kewal Kiran Clothing Limited

- Digital Marketeer of the Year: Dhruvi Jamda, Head of Digital Marketing & Sales, Everest Industries Limited

- Influencer Marketeer of the Year: Dhwani Shah, Influencer Marketing Manager, Newme

- Social Media Marketeer of the Year: Shivita Sharma, Founding Member, Lead Marketing, NEWME

- Data-Driven Marketer of the Year: Alok Arya, Chief Marketing Officer, Equentis Wealth Advisory Limited

- Brand Activation Strategist of the Year: Himanshu Badlia, Retail Marketing Head, Shoppers Stop Ltd

- Customer Experience Advocate: Suraj Shetty, Head Customer Experience, Learning & Development, Kissht

- Digital Transformation Leader of the Year: Taher Framewala, DGM E-commerce & Digital Transformation Head, Tata Motors

- PR and Communication Strategist of the Year: Suruchi Kore, Head of Digital and Social Strategies, Bajaj Group

Rajveer Singh, an ace journalist and prominent content creator, engaged in insightful conversations with the top content creators and marketers. The event was further enriched by speeches from influential personalities such as Simran Dhanwani, Lakshmi Balasubramanian (CEO of Greenroom), Shraddha More (The Face Shop India Official), Sohil Sarkazi (Meril Life Science), Kanisha Malhotra, Masumi Mewawalla (Founder of Masumi Mewawalla & Emblaze), Khushnaz Ashdin Turner, Ankesh Kumar (Director - Schneider Electric), Pooja Shetty (IMEA, The Lubrizol Corporation), Neha Plasterwala (Lockton India), Irfan Siddique, Sagar Kari, Naina Ahluwalia, Abhinandan Singh, Udita Shroff (Cathay Pacific Airways Limited), Ankita Singh, Anveshi Jain, and Suruchi Kore (Bajaj Group).

The Influence Exchange Confex and Awards was brilliantly orchestrated by Mohamed Suhel, CEO of Influence Exchange Group. His extensive experience in B2B conferences, strategic partnerships, sponsorships, and full-cycle event production ensured the event's flawless execution. Suhel's leadership was widely appreciated by attendees and sponsors alike.

The event's prime sponsors, Greenroom and SocioGenee, played a crucial role in its success. Greenroom is a content and influencer marketing agency based in Bangalore and Mumbai, while SocioGenee is a platform providing transparency and business growth opportunities for influencers.

Many won the awards but the star of the event was the charismatic anchor Bhavana Bhatia, an award winning global emcee rocking the stage for over 14 years hosting landmark events.

The Influence Exchange Confex and Awards has set a new benchmark for excellence in the industry. As attendees left with hearts full of inspiration and gratitude, they eagerly anticipated the next edition of this landmark event.

For news coverage inquiries, please contact 7710030004 or dm on insta

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Aug 31 2024, 16:21

भिलाई में पार्षद पुत्र की गुंडागर्दी : जोन कार्यालय में मचाया हंगामा, दस्तावेज फाड़े, इंजीनियर को दी जान से मारने की धमकी, केस दर्ज

दरअसल यह मामला सुभद्रा सिंह के वार्ड में सौंदर्यीकरण के काम में हुए खर्च के पैसों की लेनदेन को लेकर था. बताया जा रहा है कि 15 अगस्त की तैयारी के चलते वार्ड में मरम्मत के कुछ काम होने थे और इसी वक्त ठेकेदार शहर से बाहर था. इसके बाद सब इंजीनियर ने ठेकेदार से पार्षद के बेटे की बात कराई और इसी बीच मरम्मत का काम किया गया. इसके एवज में ठेकेदार को पार्षद के बेटे को पैसे देने थे, लेकिन अब पैसे दिलवाने का दबाव पार्षद सुभद्रा सिंह का बेटा सब इंजीनियर पर बनाने लगा.

सब इंजीनियर दीपक देवांगन का कहना है कि दोनों के बीच बातचीत पहले ही हो चुकी थी और वह पैसे के लेनदेन के किसी भी मामले में बीच में नहीं है. फिलहाल पुलिस ने सब इंजीनियर की शिकायत पर मामला दर्ज कर लिया है. भिलाई नगर सीएसपी सत्यप्रकाश तिवारी का कहना है कि पीड़ित इंजिनियर की शिकायत पर शासकीय कार्य में बाधा और शासकीय सेवक को धमकी देने, दस्तावेज फाड़ने का मामला दर्ज किया गया है. फिलहाल दोनों आरोपी फरार हैं.

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Aug 28 2024, 16:24

CPL Diagnostics Pvt. Ltd. Celebrates 7th Foundation Day with Fusion of Science and Culture.

 

The 7th Foundation Day of CPL Diagnostics Pvt. Ltd., a forerunner in laboratory diagnostics, was celebrated with much fanfare on Sunday, August 18th, 2024, at the Utsav Mancha Auditorium in Kankurgachi, Kolkata. It is indeed a turning point in the company's journey, reflecting its doctrine of excellence in healthcare with an eclectic mix of scientific sessions and vibrant cultural performances.

The "Marking Milestones of Excellence" program was inaugurated at 2:30 PM with a scintillating cultural dance performance by Ms. Deeksha Gupta, which set the very tone of celebrations for the day. Dr Tarun Roy, MD, DNB, Consultant Pathologist, CPL Diagnostics Pvt. Ltd. welcomed the audience, including doctors and business associates, as he went down memory lane on the company's seven-year journey and its achievements.

After the welcome address, Dr M.M. Ghatak, MD, Founder and Director of the Medical Rehabilitation Centre, Kolkata, delivered the keynote speech. He praised CPL Diagnostics for its contribution to the health sector, mainly diagnostic services, and called for maintaining high standards in the industry.

Dr. Koushik Ray, PhD (Marketing), Founder & Director of CPL Diagnostics Pvt. Ltd., updated the audience about the company's achievements and its future goals by reiterating the mission of CPL Diagnostics: 'one million precise, real-time diagnostic reports in 2024', while projecting a vision to lead this industry by integration with advanced technologies such as Artificial Intelligence, Machine Learning, Robotics etc.

The following scientific sessions were quite informative and interesting. Dr Anupam Basu, Professor of Molecular Biology and Human Genetics Laboratory, Burdwan University, and Former Visiting Fellow of the Department of Bioinformatics, Indian Institute of Science (IISc), Bangalore, and Postdoctoral fellow of the Department of Cell Biology and Physiology, School of Medicine, University of New Mexico, USA, a leading scientist, delivered his lecture on the hemoglobinopathy and Next-Generation Sequencing. 

Besides the scientific deliberations, a cultural function, "Rituranga," was conceptualised as an amalgamation of music and dance items that celebrated the mosaic of richness and diversity in Indian culture. Indeed, this provided a perfect counterbalance to the scientific rigour of the day and once more reiterated CPL Diagnostics' commitment to scientific excellence and community engagement in equal measure.

The program concluded with refreshments, which provided a platform for networking and assimilation of the day's deliberations and performances. CPL Diagnostics Pvt. Ltd. is deeply grateful to all delegates who spared their valuable time to participate in the Foundation Day celebrations.

In its steps ahead, CPL Diagnostics remains committed to healthcare diagnostics and setting new benchmarks. The company's core objectives revolve around innovation, quality, and patient care, driving this success story through which CPL Diagnostics became a trusted name in Diagnostics across eastern India.

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Aug 24 2024, 16:38

सेवानिवृत्त जज इंदर सिंह उबोवेजा बने छत्तीसगढ़ के प्रमुख लोकायुक्त, अधिसूचना जारी …

राज्यपाल के आदेशानुसार, छत्तीसगढ़ लोक आयोग अधिनियम, 2002 की धारा 3 की उपधारा (5) के तहत प्रदत्त शक्तियों का उपयोग करते हुए यह नियुक्ति की गई है. इंदर सिंह उबोवेजा, जो पूर्व में बिलासपुर उच्च न्यायालय के न्यायाधिपति रह चुके हैं. 22 अगस्त, 2024 से अपने नए पद का कार्यभार संभालेंगे.

बता दें कि प्रमुख लोकायुक्त का पद लंबे समय से खाली पड़ा था. इस पद पर पहले टीपी शर्मा नियुक्त थे, जिनका कार्यकाल सितंबर 2023 में समाप्त हो गया था. तब से यह पद खाली था. जिसके बाद अब बिलासपुर हाईकोर्ट के सेवानिवृत्‍त जज इंदर सिंह उबोवेजा को इस पद के लिए नियुक्त किया गया है.

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Aug 23 2024, 15:05

सीएम साय की पहल : 800 सरकारी स्कूलों में स्किल एजुकेशन शुरू, 1,600 शिक्षकों को मिलेगा प्रशिक्षण …

इस समझौते के तहत, पहले दो शैक्षणिक वर्षों में 800 सरकारी स्कूलों में स्किल एजुकेशन को लागू किया जाएगा. इस प्रक्रिया में 1,600 शिक्षकों को प्रशिक्षण दिया जाएगा, ताकि वे 40,000 छात्रों, जो कक्षा 6 से 10 तक के होंगे, को स्किल और जीवन कौशल शिक्षा प्रदान कर सकें. कार्यक्रम की शुरुआत कांकेर और कोंडागांव से होगी और इसे धीरे-धीरे राज्य के सभी 33 जिलों में फैलाया जाएगा.

मैजिक बस इंडिया फाउंडेशन के CEO, जयंत रस्तोगी, ने कहा कि स्किल एजुकेशन किशोरों के सशक्तिकरण और उनकी शिक्षा के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण है. मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने आदिवासी क्षेत्रों के बच्चों के लिए मातृभाषा में प्राथमिक शिक्षा देने का भी निर्देश दिया है, जिससे उनकी सांस्कृतिक पहचान और शिक्षा की गुणवत्ता में सुधार हो सके.

छत्तीसगढ़ सरकार का यह प्रयास, विशेषकर दुर्गम आदिवासी इलाकों के बच्चों के लिए, विकसित भारत के निर्माण में एक महत्वपूर्ण क़दम है. स्कूली शिक्षा में स्किल एजुकेशन के नए अवसर देकर, यह कदम राज्य को सशक्त करेगा और देश के विकास में भी अहम भूमिका निभाएगा. युवा पीढ़ी नई तकनीकों और ज्ञान से लैस होकर भविष्य की चुनौतियों का सामना करने के लिए तैयार होंगे.

Shashikant34

Aug 23 2024, 00:16

आरक्षण

आरक्षण कोई मुद्दा नही था। न ही इससे किसी को कोई दिक्कत थी। इसे बीजेपी द्वारा प्रस्तावित राजनीतिक मुद्दा बनाया गया वोट बैंक के लिए। जनता के बीच प्रोपेगंडा फैलाया गया कि,आरक्षण के कारण जेनेरल केटेगरी वालो की नौकरी में सेंधमारी हो रही है। जेनेरल केटेगरी वालो की नौकरी आरक्षण वाले खा रहे है। बगैरा-बगैरा। जबकि sc/st से ज्यादा आरक्षण जेनेरल केटेगरी को मिलता हैं। 100 में 50.5% जेनेरल केटेगरी वालो को मिलता है। बाकी का 49.5% sc/st और obc को मिलता है। आधे से ज्यादा आरक्षण तो जेनेरल केटेगरी वाले ले रहे और इल्जाम sc/st पर लगा रहे की वे लोग उनकी नौकरी/हिस्सेदारी खा रहे है। यह बिल्कुल तर्कहीन और तथ्यहीन बात है। महीन बात यह है कि,सवर्णो को sc/st का आगे बढ़ना चुभता है। जिसे वो किसी भी हाल में खत्म करना चाहते है।

आरक्षण तो सिर्फ सहारा है। चलना खुद पडता है। आरक्षण ठिक उस walkar की तरह है। जिसके सहारे एक छोटा बच्चा चलना सिखता है। उसी आरक्षण रूपी walkar से दलित/आदिवासी/पिछडा लोग आज अपने समाज मे चलना सीख रहे है। जिस दिन ये लोग पूर्ण रूप से चलना सीख जायेगे उस दिन खुद-ब-खुद walkar रूपी आरंक्षण को भुला देगे। जैसे बच्चा जब अपने पैरो से चलना शुरू कर देता है उस दिन से वह अपने walkar को हाथ तक नही लगाता।

आरक्षण एक व्यवस्था है समाज मे समानता लाने का। यह आरक्षण दलित/आदिवासी/पिछडो के विकास का संसाधन है। और संसाधन के बिना विकास संभव नही। देश का विकास करने के लिये प्रत्येक व्यक्ति का विकास करना जरूरी है। व्यक्ति के विकास से ही एक अच्छे समाज का निर्माण होगा। जहां खुशियां होगी,अमन-चैन और सुकुन होगा। लोगो के बीच नफरत नही मोहब्बत होगी।

समाज मे,अपने आस-पास किसी की मदद करना या किसी को सहारा देना गलत है क्या? समाज मे दलित/आदिवासी/पिछडे लोगो को आरक्षण का सहारा देकर उन्हें अपने पैरों पर खडा होने लायक बनाया जा रहा तो क्या इसमें कोई बुराई है?

आजकल अकसर सुनने को मिलता है- आरक्षण वाला डॉक्टर/आरक्षण वाला इंजीनियर। जब लोग RIMS(Rajendra Institute of Medical Science,Ranchi) पहुचते है तब कोई भी यह सवाल नही करता कि कौन आरक्षण वाला डॉक्टर है और कौन बिना आरक्षण वाला?

मैने फेसबुक पर एक post देखा था। "जिसमे चार लड़कों की तस्वीर थी। जहां तीन लडको को सोता हुआ दिखाया गया था और उनके उपर लिखा था- Sc/st/obc। चौथे लडके को पढ़ते हुए दिखाया गया था और उसके उपर लिखा था- General."

उस post का मतलब यही था कि, जेनेरल केटेगरी के लडके रात-दिन पढाई करके डॉक्टर/इंजीनियर बनते है और sc/st/obc केटेगरी के लडके सोये-सोये डॉक्टर/इंजीनियर बन जाते है। इसलिये ऐसे डॉक्टर/इंजीनियर न तो अच्छा इलाज कर सकते है और ना ही अच्छा काम। ताजुब की बात यह है कि,पढे-लिखे लोग भी ऐसे post को share nd like करते है। जबकि हकीकत इसके उलट है।

आरक्षण केवल sc/st/obc candidates को medical/engineering college तक पहुचने मे मदद करता है ना कि डॉक्टर/इंजीनियर की डिग्री दिलाने मे।

डॉक्टर/इंजीनियर बनने के लिये sc/st/obc candidates को भी उतनी ही मेहनत करनी पड़ती है जितना जेनेरल केटेगरी वाले करते है। फिर भी लोग कहते है- आरक्षण वाला डॉक्टर/ आरक्षण वाला इंजीनियर!

एक तरफ बहुत से लोग है जो आरक्षण को खत्म करने की वकालत करते है। वही दूसरी तरफ मोदी सरकार ने सवर्ण को भी दस प्रतिशत का आरक्षण दे दिया है। जबकि उन्हें आरक्षण की नही,economic support की जरूरत है। क्योकि सवर्ण लोग बौद्धिक और तार्किक क्षमता से निपुण होते है। जबकि sc/st/लोगो की बौद्धिक और तार्किक क्षमता सवर्णो की तुलना में कम होती है। पर इसका मतलब यह कतई नही है कि, sc/st के लोगो को मौका मिलने पर अपनी बौद्धिक और तार्किकि क्षमता को विकसित नही कर सकते। हज़ारो हज़ार sc/st लड़को ने डॉक्टर/इंजीनियर बन कर साबित भी किया हैं। बस उन्हें मौका मिलना चाहिए। और यह मौका उन्हें आरक्षण के द्वारा मिलता है। बहुत से लोगो का यह मानना है कि,जो लोग आरक्षण का लाभ लेकर सुखी-सम्पन्न हो चुके है। उन्हें आरक्षण का लाभ नही लेना चाहिए। पर महीन बात यह है कि,आरक्षण का संबंध इनकम से नही बल्कि सामाजिक असमानता और इंटेलिजेंस(बौद्धिक एवं तार्किक क्षमता) से है। इसकी क्या गारंटी है कि,आरक्षण से डॉक्टर/इंजीनियर बनने वाले का बेटा/बेटी बिना आरक्षण के डॉक्टर/इंजीनियर बन पाएंगे? कुछ लोग यह भी कहते है कि,आरक्षित वर्ग के कुछ खास लोग तथा कुछ खास जातियां ही आरक्षण का लाभ उठा रही है। जिसके कारण बाकी लोग आरक्षण का लाभ नही उठा पा रहे। अब यह कैसे संभव है?

आरक्षित वर्ग(sc/st) के जो भी पढ़े-लिखे लोग है। वे सभी प्रतियोगिता परीक्षाओं में शामिल होते है। जिसने अच्छे से पढ़ाई-लिखाई किया,वो सफल होते है। जिसने अच्छे से पढ़ाई नही किया,वे सफल नही हो पाते। sc/st को भी सफल होने के लिए पढ़ना पड़ता है। मेहनत करनी पड़ती है। ऐसा नही है कि,आरक्षण के नाम पर बगैर पढ़े-लिखे ही नौकरी मिल जाएगी। आरक्षण का लाभ वही लोग उठाते है,जो पढ़ते है। मेहनत करते है। इसलिए यह कहना गलत है कि,आरक्षण का लाभ केवल खास जाती या खास लोग उठा रहे है।

हज़ारो साल के शोषण ने sc/st के DNA को विकृत कर दिया है। सवर्णो का यह शोषण हिरोशिमा और नागासाकी पर गिराए गए परमाणु बम से भी ज्यादा खतरनाक है। जिसका नतीजा है कि, आज भी sc/st के बच्चे सवर्णो का मुकाबला नही कर पाते है। इसी विकृति को दूर करने के लिए आरक्षण नाम का एन्टी डॉज लाया गया। ताकि sc/st केटेगरी के लोग सवर्णो की बराबरी कर सके। पर सवर्णो को ये बराबरी रास नही आती। इसलिए ये लोग हमेशा से आरक्षण का विरोध करते आये है। मेरे खयाल से आरक्षण तब तक लागू रहना चाहिए जब तक sc/st की बौद्धिक और तार्किक क्षमता सवर्णो के बराबर न हो जाए। आरक्षण भीख नही,सवर्णो द्वारा किये गए शोषण का मुआवजा है। जो आज सवर्णो को भारी पड़ रहा है।

सवर्णो में भी बहुत से ऐसे लोग है जो आर्थिक रूप से कमजोर होने के कारण अपना विकास नही कर पाते। सरकार वैसे लोगो को schoolarship दे ताकि वे लोग भी अपना विकास कर समाज मे सम्मान पा सके।

सवर्ण को schoolarship रूपी walkar की जरूरत है न की आरक्षणरूपी walkar की।

रिजर्वेशन शुड कंटिन्यू टिल द एन्ड ऑफ कास्टिसम।