जानिए दुनिया की वो जगह जहां गुरुत्वाकर्षण का प्रभाव नहीं!दीवार पर कुर्सी रखकर बैठते हैं लोग
नयी दिल्ली : वैसे धरती पर ऐसी कोई जगह नहीं है कि जहां पर ग्रैविटी जीरो हो, लेकिन इस दुनिया में कुछ ऐसी जगहें हैं जहां पर बेहद लो ग्रैविटी महसूस होती है, इसे वैज्ञानिक भाषा में गुरुत्वाकर्षण विसंगति कहते हैं।गुरुत्वाकर्षण बल ब्रह्मांड की मूलभूत शक्ति है जिसके चलते ब्रह्मांड में हर वस्तु एक-दूसरे को आकर्षित करती है और अपनी जगह पर टिकी हुई है।
इस धरती पर गुरुत्वाकर्षण बल की वजह से ही जीवन संभव हो सका है। अगर धरती पर ग्रैविटी ना होती तो यहां पर नदी, पहाड़, महासागर सब गायब होते, जीवन की संभावना ही नहीं होती, क्योंकि गुरुत्वाकर्षण के बिना कोई भी ज्यादा देर तक जिंदा नहीं रह सकता था। यही गुरुत्वाकर्षण हर जगह मौजूद है। ये सौर मंडल और आकाशगंगाओं को एक साथ रखता है। लेकिन क्या आप जानते हैं कि धरती पर ही कुछ जगहें ऐसी हैं जहां पर ये गुरुत्वाकर्षण ना के बराबर महसूस होता है। हालांकि ये बहुत अजब तरीके से काम करता है, इसे ‘गुरुत्वाकर्षण विसंगति’ कहते हैं। ये कौन सी जगहें हैं इनके बारे में हम आपको बता रहे हैं।
मिस्ट्री स्पॉट, कैलिफ़ोर्निया
अमेरिका के कैलिफोर्निया में मिस्ट्री स्पॉट का नाम इसके अजब गुरुत्वाकर्षण की वजह से ही दिया गया है। यहां एक ‘मिस्ट्री शैक’ है जो गिरती हुई दिखाई देती है। यहां पर लोग झुकी हुई स्थिति में चलते हैं इसके अलावा वस्तुएं ऊपर की ओर लुढ़कती दिखाई देती है। हैं।
कॉस्मॉस मिस्ट्री एरिया, रैपिड सिटी
अमेरिका के साउथ डकोटा के पास ये कॉस्मॉस मिस्ट्री एरिया है। इस जगह पर अजीब तरह के पेड़ हैं जो एक तरफ झुके हुए हैं। हैरान की बात ये है कि यहां आप एक पैर पर खड़े हो सकते हैं और आप गिरेंगे भी नहीं। यहां की झीलें पानी की ढलान की उल्टी दिशा में बहती दिखाई देती हैं।
सेंट इग्नास मिस्ट्री स्पॉट, मिशिगन
अमेरिका के मिशिगन में स्थित सेंट इग्नास मिस्ट्री स्पॉट स्थित है। यहां पर बेहद कम गुरुत्वाकर्षण है। इसके चलते यहां पर कई अजीब वाकये घटित होते रहते हैं। जैसे यहां लोग दीवार पर 90 डिग्री के कोण पर खड़े हो जाते हैं और कुर्सी को दीवार पर रखकर बैठ जाते हैं। यहां पर किसी भी व्यक्ति का संतुलन असामान्य हो जाता है।
हूवर बांध
अमेरिका में ही स्थित एरिजोना और नेवादा राज्य की सीमा पर ये हूवर बांध बना हुआ है। ये बांध कोलोराडो नदी पर बनाया गया है। इस बांध के किनारे पानी नीचे की बजाय ऊपर की बहता दिखाई देता है। विशेषज्ञों का मानना है कि इसका कारण लो ग्रैविटी नहीं बल्कि बांध का मज़बूत अपड्राफ़्ट एक शक्तिशाली बल पैदा करता है, जो गुरुत्वाकर्षण के खिंचाव के विरुद्ध पानी के प्रवाह को फिर से अपलिफ्ट कर देता है।
हूवर बांध पर गुरुत्वाकर्षण धरती के बाकी हिस्सों के समान ही है। पृथ्वी के गुरुत्वाकर्षण में अंतर केवल बहुत बड़े भौगोलिक या ऊंचाई संबंधी बदलावों के कारण होता है, जो यहां लागू नहीं है।
Nov 20 2024, 12:21