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निकिता सिंघानिया ने किया बड़ा खुलासा, बताया रोहित निगम से क्या था रिश्ता?

बेंगलुरु के सॉफ्टवेयर इंजीनियर अतुल सुभाष सुसाइड केस (Atul Subhash Update) को पूरे 17 दिन बीत चुके हैं. केस में रोजाना नए-नए खुलासे हो रहे हैं. अब जौनपुर फैमिली कोर्ट में दर्ज अतुल बनाम निकिता सिंघानिया केस (Nikita Singhania Revelation) का एक और डॉक्यूमेंट सामने आया है. अतुल सुभाष ने पत्नी निकिता पर रोहित निगम नामक लड़के से अवैध संबंध होने का आरोप लगाया था. निकिता ने इसे लेकर कोर्ट को जवाब दिया था. निकिता ने बताया था कि रोहित निगम उसके पिता के दोस्त का बेटा है.

अतुल ने ये भी आरोप लगाया था कि साल 2021 के दरम्यान जब निकिता संग उसके रिश्ते बिगड़ने शुरू हुए थे तो रोहित अक्सर उनके घर आता था. निकिता फोन पर भी घंटों तक रोहित से बातें करती थी. हालांकि, उसने दोनों को कभी संबंध बनाते नहीं देखा. लेकिन शक जरूर था कि दोनों के बीच कुछ तो अटपटा है. यानि उनके बीच अफेयर है. अतुल ने कहा था- निकिता अक्सर रोहित से बातें करती रहती थी. इसे लेकर हमारे बीच में हमेशा लड़ाई झगड़े होते थे. लेकिन निकिता कभी भी मेरी बात नहीं सुनती थी.

निकिता पर आरोप लगाते हुए अतुल ने कहा- हमारे बीच में रोहित रोड़ा बना हुआ था. मेरी बीवी इस बात को समझती ही नहीं थी. वो फिर भी रोहित से बातें करती रहती थी. कोई ऐसा दिन नहीं होता था जब हम दोनों के बीच रोहित को लेकर लड़ाई न होती हो. वो रोहित से घर में अक्सर नॉनवेज भी मंगवाया करती थी. जबकि, मैं शुद्ध शाकाहारी हूं. मैंने कई दफा निकिता को मना भी किया कि अगर तुम्हें ये सब चीजें खानी हों तो बाहर जाकर खाओ. लेकिन वो फिर भी घर में ही मेरे सामने नॉनवेज खाती थी और हड्डियां कमरे में ही फेंक देती थी.

निकिता ने आरोपों को बताया गलत

अतुल के इन आरोपों को निकिता ने सिरे से खारिज कर दिया था. उसने जौनपुर कोर्ट को बताया- रोहित निगम मेरे पापा के दोस्त का बेटा है. मेरा उससे कोई गलत रिश्ता नहीं हैं. वो मेरे यहां आता जरूर था. लेकिन सिर्फ दोस्त के नाते. जब मेरी मां निशा जुलाई 2021 में बेंगलुरु आई थीं. तब रोहित हमसे मिलने आता था. लेकिन अतुल फिर भी मुझसे बिना किसी बात के लड़ाई झगड़े करते थे. उन्होंने मेरी ही मां के सामने मुझे मुक्के मारे. मेरे साथ मारपीट की. मैंने अपना स्त्रीधर्म अच्छे से निभाया. लेकिन फिर भी अतुल का टॉर्चर देना खत्म नहीं हुआ. इसलिए मैं घर छोड़कर चली गई. मैं अतुल को छोड़ना नहीं चाहती थी. लेकिन उन्हीं के कारण मैं घर छोड़कर गई.

अतुल सुभाष सुसाइड केस

9 दिसंबर को अतुल सुभाष ने 24 पन्नों का सुसाइड नोट छोड़ अपनी जीवनलीला समाप्त कर ली थी. पत्नी निकिता, सास, साला और चाचा ससुर के खिलाफ सुसाइड के लिए उकसाने का आरोप लगाया. फिर अतुल के भाई विकास की तहरीर पर पुलिस ने मामला दर्ज किया. इसी सिलसिले में निकिता, निशा और अनुराग की गिरफ्तारी हुई. फिर उन्हें 15 दिन की न्यायिक हिरासत पर भेज दिया गया. 31 दिसंबर को तीनों आरोपियों को कोर्ट में पेश किया जाएगा. वहीं, चौथे आरोपी यानि निकिता के चाचा को पुलिस गिरफ्तार कर पाती, उससे पहले ही उन्हें हाईकोर्ट से जमानत मिल गई.

इंदौर के खजराना गणेश मंदिर में महिला का हंगामा, पुलिसकर्मी से बदसलूकी करने का आरोप

मध्य प्रदेश के इंदौर में स्थित खजराना गणेश मंदिर पहुंची एक महिला ने पुलिसकर्मी से बदसलूकी की. वहीं महिला ने पुलिसकर्मी से बदसलूकी करने के बाद जमकर हंगामा किया. सुरक्षा कर्मियों ने मंदिर में हंगामा कर रही महिला को पकड़कर बाहर कर दिया. इस मामले का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है. वीडियो वायरल होने के बाद एडिशनल डीसीपी जांच के आदेश दिए हैं.

इंदौर के खजराना गणेश मंदिर में एक महिला ने पुलिसकर्मी पर बदसलूकी करने का आरोप लगाया. वहीं महिला ने आरोप लगाते हुए मंदिर के अंदर जमकर हंगामा किया. इसके बाद मंदिर में मौजूद सुरक्षा कर्मियों ने जब महिला को हंगामा करते हुए देखा तो उसे घसीट कर मंदिर के बाहर कर दिया. घटना का वीडियो सोशल मीडिया पर जमकर वायरल हो रहे है. वायरल वीडियो में भी देखा जा सकता है कि किस तरह से महिला पहले पुलिसकर्मी के साथ बदसलूकी कर रही है और उसके बाद सुरक्षा कर्मियों के द्वारा उसे घसीट कर बाहर कर दिया जाता है.

मंदिर में महिला का हंगामा

वायरल वीडियो में देखा जा सकता है कि महिला पुलिसकर्मी से बहस कर रही है. पुलिसकर्मी पर बदसलूकी करने का आरोप लगा रही है. इसके बाद हंगामा करना भी शुरू कर देती है. मंदिर हंगामा देख लोग हैरान हो जाते हैं. वहीं मंदिर में तैनात सुरक्षाकर्मियों ने महिला को मंदिर से बाहर कर देते हैं. मंदिर से जुड़े लोगों ने बताया कि महिला हर दिन इसी तरह से हंगामा करती है.

एडिशनल डीसीपी ने दिए जांच के आदेश

फिलहाल इस पूरे घटनाक्रम को लेकर एडिशनल डीसीपी राजेश दंडोतिया का कहना है कि पूरे ही मामले में वीडियो के आधार पर जांच पड़ताल की जा रही है. वहीं महिला आए दिन खजराना गणेश मंदिर में इस तरह से अभद्रता करती रहती है. संभवता उस दिन भी इसी तरह का कोई घटनाक्रम हुआ और उसके बाद महिला को वहां पर मौजूद सुरक्षाकर्मियों ने घसीटकर बाहर कर दिया. उन्होंने कहा कि पूरे मामले की जांच करवाई जा रहीहै.

Jio, Airtel को फिर चुनौती देगी BSNL, मुफ्त में देख सकेंगे 300 से ज्यादा टीवी चैनल

भारत संचार निगम लिमिटेड (BSNL) ने इस साल नया लोगो लॉन्च किया है. इसके अलावा इस सरकारी टेलीकॉम कंपनी कई नई सर्विस की भी शुरुआत की है. इससे टेलीकॉम सेक्टर की प्राइवेट कंपनी रिलायंस जियो और एयरटेल को तगड़ी चुनौती मिल रही है. बीएसएनएल ने एक नया दांव और खेला है, जिसने जियो और एयरटेल की बेचैनी बढ़ा दी है. हाल ही में बीएसएनएल ने IFTV (इंट्रानेट फाइबर टीवी) सर्विस की शुरुआत की है, जिसके तहत 300 से ज्यादा फ्री लाइव टीवी चैनल दिखाए जा रहे हैं. अब कंपनी BiTV को भी लॉन्च करने की तैयारी कर रही है.

ये दोनों सर्विस बीएसएनएल कस्टमर्स को मुफ्त में लाइव टीवी चैनल देखने का मौका देती हैं. बीएसएनएल IFTV की शुरुआत मध्य प्रदेश और तमिलनाडु में हुई. अब इसका दायरा पंजाब, हरियाणा और पुडुचेरी तक बढ़ गया है. IFTV एक फाइबर बेस्ड इंटरनेट सर्विस है, जबकि BiTV नॉन-फाइबर बेस्ड इंटरनेट सर्विस है.

BSNL IFTV: 500 से ज्यादा फ्री TV चैनल

बीएसएनएल वाईफाई ब्रॉडबैंड के जरिए IFTV की सर्विस दे रही है. इसमें 500 से ज्यादा लाइव टीवी चैनल बिलकुल फ्री मिलते हैं. बीएसएनएल के FTTH (फाइबर-टू-द-होम) कस्टमर्स के लिए यह सर्विस बिलकुल मुफ्त है. इसके लिए कस्टमर्स को एक रुपया भी खर्च नहीं करना होगा.

बीएसएनएल की ये सर्विस प्राइवेट कंपनियों के लिए बड़ी चुनौती है. रिलायंस JioFiber और JioAirFiber के जरिए ब्रॉडबैंड सर्विस देती है, जबकि एयरटेल की ब्रॉडबैंड सर्विस का नाम Airtel Xstream Fiber है.

BSNL BiTV: 300 से ज्यादा मुफ्त TV चैनल

BiTV बीएसएनएल के मोबाइल कस्टमर्स के लिए है. इसमें 300 से ज्यादा लाइव टीवी चैनल फ्री में देखने का मौका मिलेगा, जिसमें प्रीमियम चैनल भी शामिल हैं. इसे फिलहाल पुडुचेरी में लॉन्च किया गया है, और यह बिलकुल फ्री है. कुल मिलाकर लाइव टीवी चैनल दिखाने की टेक्नोलॉजी एक है, बस कस्टमर्स को ये सर्विस देना का तरीका अलग है.

BSNL का कंज्यूमर बेस बढ़ा

बीएसएनएल के लिए IFTV और BiTV, दोनों अहम और एक जैसी सर्विस हैं. हालांकि, कंपनी ने इन्हें अलग-अलग ब्रांड के साथ पेश किया है. इनमें एक खासतौर पर फाइबर कस्टमर्स के लिए है, जबकि दूसरी मोबाइल कस्टमर्स के लिए है.

टेलीकॉम सेक्टर में बीएसएनएल ने का कंज्यूमर बेस लगातार बढ़ रहा है. 23 दिसंबर को आई टेलीकॉम रेगुलेटरी अथॉरिटी ऑफ इंडिया (TRAI)के रिपोर्ट के मुताबिक, अक्टूबर में बीएसएनएल ने 5 लाख नए ग्राहक जोड़े हैं.

गोवा में बड़ा हादसा: कलंगुट समुद्र तट पर नाव पलटने से एक की मौत, 20 से अधिक लोगों का रेस्क्यू

उत्तरी गोवा के कलंगुट समुद्र तट पर बुधवार को बड़ा हादसा हो गया. यहां पर्यटकों से भरी एक नाव पलट गई. इस हादसे में एक पर्यटक की मौत हो गई है. जबकि छह साल के एक बच्चे समेत 20 से अधिक लोगों को रेस्क्यू किया गया है. गोवा पुलिस के मुताबिक यह हादसा बुधवार की दोपहर करीब डेढ़ बजे की है. हादसे की वजह नाव के इंजन में खराबी बताया जा रहा है. फिलहाल पुलिस हादसे के कारणों की जांच कर रही है.

पुलिस के मुताबिक लाइव सेविंग जैकेट पहने होने की वजह से बड़ा हादसा टल गया. दरअसल नाव में सवार सभी पर्यटकों ने लाइफ सेविंग जैकेट पहन रखी थी. केवल दो यात्री ही ऐसे थे, जिन्होंने लाइव सेविंग जैकेट नहीं पहना था. गोवा पुलिस के मुताबिक इस हादसे में एक 54 वर्षीय पर्यटक की मौत हुई है. लाइफ सेविंग एजेंसी दृष्टि मरीन के प्रवक्ता के मुताबिक यह हादसा समुंद्र तट से करीब 60 दूर गहरे समंदर में हुआ है. इस हादसे के बाद सभी यात्री समंदर में गिर गए थे.

एक ही परिवार के 13 लोग थे सवार

गनीमत रही कि हादसे को समय रहते देख लिया गया. इसके बाद तत्काल राहत एवं बचाव कार्य शुरू करते हुए 20 से अधिक लोगों को रेस्क्यू किया गया है. अधिकारियों के मुताबिक नाव में सभी लोग पर्यटक थे और गोवा घूमने आए थे. इनमें महाराष्ट्र में खेड़ का रहने वाला परिवार भी शामिल है. इस परिवार के 13 लोग इस नाव में सवार थे. दृष्टि मरीन के मुताबिक हादसे की जानकारी मिलते ही 18 से अधिक ऑन ड्यूटी लाइफ सेवर्स को समंदर में उतारा गया.

20 से अधिक लोगों का हुआ रेस्क्यू

इन्होंने काफी मस्सकत के बाद 20 से अधिक लोगों को सुरक्षित तरीके से बाहर निकाल लिया है. इन सभी पर्यटकों को समंदर से निकालने के बाद अस्पताल ले जाया गया, जहां से इन्हें प्राथमिक उपचार के बाद छुट्टी दे दी गई है. बता दें कि बीते सप्ताह मुंबई के गेटवे ऑफ इंडिया के पास भी एक नाव हादसा हुआ था. इसमें पर्यटकों से भरी नाव नेवी की नाव से टकरा गई थी. इस हादसे में कई लोगों की मौत हुई थी.

गुजरात के देवभूमि द्वारका में बड़ा हादसा: ओखा बंदरगाह पर क्रेन गिरने से 3 मजदूरों की मौत, कई घायल

गुजरात के देवभूमि द्वारका में बुधवार को बड़ा हादसा हो गया. यहां ओखा बंदरगाह पर जेटी निर्माण के वक्त अचानक से क्रेन गिर गया. वहीं इस क्रेन की चपेट में आने से तीन मजदूरों की मौत हो गई है. सूचना मिलने पर मौके पर पहुंची पुलिस ने तीनों श्रमिकों का शव कब्जे में लेकर मामले की जांच शुरू कर दी है. पुलिस के मुताबिक दो श्रमिकों की मौत मौके पर ही हो गई थी, जबकि तीसरे श्रमिक को अस्पताल ले जाते समय रास्ते में मौत हुई है. देवभूमि द्वारका के जिला कलेक्टर जीटी पंड्या ने घटना की पुष्टि की.

उन्होंने बताया कि ओखा बंदरगाह पर गुजरात मैरीटाइम बोर्ड की ओर से जेटी का निर्माण चल रहा था. इस काम के दौरान अचानक से क्रेन का बैलेंस बिगड़ गया और यह क्रेन नीचे काम कर रहे मजदूरों के ऊपर गिर पड़ा. इस क्रेन की चपेट में कई मजदूर आ गए थे. इनमें से दो मजदूरों की मौके पर ही मौत हो गई, जबकि एक मजदूर ने अस्पताल ले जाते समय दम तोड़ दिया. इसके अलावा दो तीन और मजदूरों को हल्की चोटें आई हैं.

कंकरीट ब्लाक के नीचे दब गए थे मजदूर

आणंद फायर अफसर धर्मेश गोर के मुताबिक करीब आधा दर्जन मजदूर कंक्रीट ब्लॉक के नीचे काम कर रहे थे. क्रेन हादसे में यह सभी उस ब्लाक में फंस गए और इनमें से दो मजदूरों की मौके पर ही मौत हो गई. बड़ी मुश्किल से बाकी श्रमिकों को बाहर निकाल कर अस्पताल पहुंचाया गया. इनमें से एक और श्रमिक को डॉक्टरों ने देखते ही मृत घोषित किया है. फायर अफसर के मुताबिक घटना स्थल पर गिरे हुए कंकरीट ब्लाक को हटाया जा रहा है. इसी के साथ यह भी देखा जा रहा है कि कोई और श्रमिक तो नीचे नहीं फंसा है.

कंकरीट ब्लाक उठाते समय हुआ हादसा

उधर, नेशनल हाई स्पीड रेल कॉरपोरेशन लिमिटेड (NHSRCL) के एक अधिकारी ने घटना की जानकारी दी है. बताया कि समंदर में जेटी (कुएं) का काम चल रहा है. इसके लिए नींव बनाने के लिए स्टील और कंक्रीट के ब्लॉक लाए गए हैं. इन ब्लाकों को क्रेन की मदद से उठाकर लगाया जा रहा था. इसी दौरान यह हादसा होने की वजह से कंकरीट ब्लाक यहां काम कर रहे मजदूरों के ऊपर ही गिर पड़ा. अधिकारियों के मुताबिक फिलहाल मौके पर राहत व बचाव कार्य जारी है.

उत्तराखंड: हल्द्वानी से पिथौरागढ़ जा रही बस 1500 फुट गहरी खाई में गिरी, 4 की मौत, 24 घायल

उत्तराखंड के कुमाऊं मंडल में नए साल के जश्न से ठीक पहले बुधवार को बड़ा हादसा हुआ. यहां एक हल्द्वानी रोडवेज की बस भीमताल-रानीबाग रोड पर आमडाली के पास अनियंत्रित होकर करीब 1500 फुट गहरी खाई में गिर गई. यह हादसा इतना भीषण था कि बस में सवार सभी 28 लोग छिटककर इधर-उधर जा गिरे. इनमें दो महिलाओं और एक बच्चा समेत चार लोगों की मौके पर ही मौत हो गई. वहीं बाकी के 24 लोग गंभीर रूप से जख्मी हो गए हैं. सूचना मिलने पर मौके पर पहुंची राहत व बचाव टीम ने सभी घायलों को खाई से निकालकर अस्पताल पहुंचाने की कवायद शुरू कर दी है.

यह हादसा ऐसे स्थान पर हुआ है, जहां खड़ी पहाड़ी है. इसलिए घायलों को नीचे से ऊपर ले आना काफी मुश्किल हो गया है. ऐसे हालात में राहतकर्मी रस्सी के सहारे घायलों को कंधों पर रखकर ऊपर ला रहे हैं. पुलिस के मुताबिक ज्यादातर घायलों को निकालकर सीएचसी पहुंचाया गया, जहां से कुछ घायलों की स्थिति नाजुक होने पर उन्हें बड़े अस्पताल के लिए रैफर किया गया है. फिलहाल मौके पर रेस्क्यू अभियान जारी है. प्रशासन के मुताबिक हादसे की गंभीरता को देखते हुए एक तरफ जहां सुशील तिवारी अस्पताल को अलर्ट पर रखा गया है, वहीं हल्द्वानी से 15 एम्बुलेंस मौके पर भेजी गई हैं.

सीएम धामी ने जताया दुख

एसपी सिटी नैनीताल डॉ. जगदीश चन्द्र के मुताबिक गंभीर घायलों को हायर सेंटर भेजा जा रहा. उन्होंने अब तक 24 यात्रियों को रेस्क्यू किया गया है. उधर, बनभूलपुरा थानाध्यक्ष नीरज भाकुनी ने चार लोगों के मौत की पुष्टि की. हादसे की जानकारी मिलने पर मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने दुख व्यक्त किया है. उन्होंने कहा कि सोशल मीडिया में अपना दुख प्रकट करते हुए कहा कि त्वरित राहत एवं बचाव कार्य के लिए प्रशासन को निर्देशित किया है. उन्होंने लिखा है कि सभी यात्रियों के सकुशल होने के लिए वह बाबा केदार से प्रार्थना करेंगे.

हल्द्वानी डिपो की है बस

जानकारी के मुताबिक जिस बस का एक्सिडेंट हुआ है, वह हल्द्वानी डिपो की है. यह बस रोज सुबह हल्द्वानी से 7.30 बजे पिथौरागढ़ के लिए निकलती है और रात भर वहीं रुकने के बाद अगले दिन सुबह छह बजे हल्द्वानी के लिए वापस लौटती है. बताया जा रहा है कि इस हादसे में बस के ड्राइवर रमेश चंद्र पांडे और कंडक्टर गिरीश दानी भी गंभीर रूप से घायल हुए हैं. हादसे की जानकारी मिलने पर एआरएम संजय पांडे व अन्य अधिकारी मौके पर पहुंच गए हैं.

परवेश वर्मा को सीएम फेस घोषित करने जा रही है बीजेपी… अरविंद केजरीवाल का बड़ा दावा

दिल्ली के पूर्व सीएम अरविंद केजरीवाल और उनकी पार्टी बीजेपी नेता परवेश वर्मा पर हमलावर है. उन पर वोट खरीदने का आरोप लगा रही है. इसी बीच वर्मा को लेकर केजरीवाल ने बड़ा दावा किया है. उन्होंने कहा कि सूत्रों के मुताबिक बीजेपी परवेश वर्मा को अपना सीएम फेस घोषित करने जा रही है. क्या दिल्ली की जनता ऐसे व्यक्ति को अपना सीएम बनाना चाहेगी?

इससे पहले अरविंद केजरीवाल ने परवेश वर्मा पर हमला बोलते हुए कहा कि ये लोग हर वोटर को 1100 रुपये दे रहे हैं और कह रहे हैं कि उनकी पार्टी को वोट देना. ये आप जरूरतमंदों की मदद कर रहे हो या खुलेआम वोट खरीद रहे हो? आपके पिताजी को आज शर्म आ रही होगी आप जैसे देशद्रोही बेटे पर.

ये लोग चुनाव नहीं लड़ते, बस बेईमानी करते हैं

सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर पोस्ट में केजरीवाल ने कहा, ये कह रहा है कि उसके घर से कोई महिला खाली हाथ नहीं जाएगी. आज से पूरी दिल्ली की महिलाएं उसके घर जाकर पैसे ले आएं. ये लोग चुनाव नहीं लड़ते, बस बेईमानी करते हैं. इस बार दिल्ली के चुनाव में इनकी एक एक करतूत देश के सामने आएगी. पूरे देश के सामने ये लोग बेनकाब होंगे.

एक अन्य पोस्ट में केजरीवाल ने कहा, मैं अभी अपने विधानसभा क्षेत्र के कई इलाकों से आ रहा हूं. हर जगह लोगों ने बताया कि ये लोग खुलेआम वोट खरीद रहे हैं. एक वोट के 1100 रुपये दे रहे हैं. लोगों ने कहा कि लोग इनसे पैसे ले लेंगे लेकिन इन्हें वोट नहीं देंगे. दिल्ली की सभी महिलाओं से मेरी प्रार्थना है कि आप रोज इनके घर कल से पैसे लेने जाइए.

चुनाव आयोग की नाक के नीचे रुपये बांटे जा रहे हैं

केजरीवाल के अलावा आम आदमी पार्टी सांसद संजय सिंह ने भी परवेश वर्मा पर हमला बोला है. उन्होंने कहा, दिल्ली में चुनाव आयोग की नाक के नीचे केजरीवाल के क्षेत्र में खुलेआम हजार-हजार रुपये बांटे जा रहे हैं. संभावित बीजेपी प्रत्याशी परवेश वर्मा पैसे बांट रहे हैं. करोड़ों रुपये उनके घर में हैं. ईडी-सीबीआई क्या कर रही है.

उन्होंने कहा, हम लोगों के घर में तो जांच एजेंसियां पहुंच जाती हैं. अब क्या कर रही है ईडी और सीबीआई? क्यों छापा नहीं मारा जा रहा है? दिल्ली में इतना बड़ा खेल हो रहा है. सारी जांच एजेंसियां दिल्ली में बैठी हैं. हमारी मांग है कि परवेश वर्मा का घर सीज किया जाए और जांच की जाए.

पीएम मोदी का कांग्रेस पर हमला: घोषणाएं करने, फीता काटने में माहिर थीं कांग्रेस सरकारें

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बुधवार को छतरपुर के खजुराहो में पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी की 100वीं जयंती के अवसर पर केन-बेतवा नदी जोड़ो परियोजना और अन्य विकास परियोजनाओं की आधारशिला रखी. साथ ही साथ पीएम ने वाजपेयी की जयंती पर स्मारक सिक्का और डाक टिकट भी जारी किया. इस दौरान पीएम मोदी ने कहा कि आज पूरी दुनिया क्रिसमस मना रही है. मैं देश और दुनिया भर में ईसाई समुदाय को क्रिसमस की शुभकामनाएं देता हूं. मोहन यादव के नेतृत्व वाली भाजपा सरकार ने एक साल पूरा कर लिया है. मैं मध्य प्रदेश की जनता, भाजपा कार्यकर्ताओं को बधाई देता हूं. इस एक साल में मध्य प्रदेश में विकास को नई गति मिली है.

पीएम मोदी ने कहा कि आज ऐतिहासिक केन बेतवा लिंक परियोजना का शिलान्यास भी हुआ है. ओंकारेश्वर फ्लोटिंग सोलर प्लांट का भी लोकार्पण हुआ है और ये मध्य प्रदेश का पहला फ्लोटिंग सोलर प्लांट है. मैं इन परियोजनाओं के लिए मध्य प्रदेश को ढेर सारी बधाई देता हूं. आज श्रद्धेय अटल जी की जन्मजयंती है. आज भारत रत्न अटल जी के जन्म के सौ साल हो रहे हैं. अटल जी की जयंती का ये पर्व, सुशासन की हमारी प्रेरणा का भी पर्व है.

उन्होंने कांग्रेस पर हमला बोलते हुए कहा कि अतीत में कांग्रेस सरकारें, घोषणाएं करने में माहिर हुआ करती थीं. घोषणाएं करना, फीता काटना, दीया जलाना, अखबार में तस्वीर छपवा देना… उनका (कांग्रेस) काम वहीं पूरा हो जाता था और उसका फायदा लोगों को नहीं मिल पाता था.

सुशासन दिवस सिर्फ एक दिन का आयोजन नहीं- पीएम मोदी

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा, ‘हमारे लिए सुशासन दिवस सिर्फ एक दिन का आयोजन नहीं है. सुशासन बीजेपी सरकारों की पहचान है. मैं देश की जनता से आग्रह करूंगा कि आजादी के 75 साल के अवसर पर एक बार आकलन करें, विकास और सुशासन के मापदंड तय करें और हिसाब लगाएं कि जहां कांग्रेस की सरकारें थीं वहां क्या काम हुआ, जहां वामपंथी सरकारें थीं वहां क्या हुआ, जहां परिवारवादी पार्टियों की सरकारें थीं वहां क्या हुआ, जहां गठबंधन सरकारें थीं वहां क्या हुआ और जहां बीजेपी को सरकार चलाने का मौका मिला वहां क्या हुआ. मैं दावे के साथ कहता हूं कि जब भी बीजेपी को देश की सेवा करने का मौका मिला है, हमने पुराने सारे रिकॉर्ड तोड़कर जनहित, जनकल्याण और विकास के कार्यों में सफलता हासिल की है.’

पीएम मोदी ने कहा कि सुशासन का मलतब यही है कि अपने ही हक के लिए नागरिकों को सरकार के सामने हाथ न फैलाना पड़े, सरकारी दफ्तरों के चक्कर न काटने पड़ें. यही तो शत प्रतिशत लाभार्थी को शत प्रतिशत लाभ से जोड़ने की हमारी नीति है.

कांग्रेस की नीयत खराब थी- पीएम

उन्होंने कहा कि दशकों तक, मध्य प्रदेश के किसानों, माताओं और बहनों ने बूंद-बूंद पानी के लिए संघर्ष किया क्योंकि कांग्रेस ने कभी जल संकट के स्थाई समाधान के लिए सोचा ही नहीं. आज सात दशक बाद भी देश के अनेक राज्यों के बीच पानी को लेकर कुछ न कुछ विवाद है. जब पंचायत से लेकर पार्लियामेंट तक, कांग्रेस का राज था, तब ये विवाद आसानी से सुलझ सकते थे, लेकिन कांग्रेस की नीयत खराब थी इसलिए उसने कभी भी ठोस प्रयास नहीं किए. जब देश में अटल जी की सरकार बनी, तब उन्होंने पानी से जुड़ी चुनौतियों को हल करने के लिए गंभीरता से काम शुरू किया था, लेकिन 2004 में जैसे ही कांग्रेस की सरकार बनी, कांग्रेस ने अटल जी के सभी प्रयासों को ठंडे बस्ते में डाल दिया.

अटल बिहारी वाजपेयी की 100वीं जयंती: संजय राउत ने कहा- वाजपेयी थे दूसरे नेहरू, जब भी राजधर्म खतरे में होगा, देश उन्हें याद करेगा

पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी की 100 वी जयंती मनाई जा रही है. तमाम राजनीतिक दलों के नेता उनको श्रद्धांजलि दे रहे हैं. इस बीच उद्धव शिवसेना के नेता संजय राउत ने बड़ा दावा किया है. उन्होंने कहा कि अटल बिहारी वाजपेयी भारतीय राजनीति के दूसरे जवाहरलाल नेहरू थे. वे हमेशा राजधर्म का पालन करते थे. राउत ने यह भी कहा कि जब भी “राज धर्म” खतरे में होगा, देश वाजपेयी को याद करेगा.

राउत ने कहा कि जब तक अटल बिहारी और लालकृष्ण आडवाणी थे, बीजेपी और शिवसेना का संबंध अच्छा रहा. अटल बिहारी वाजपेयी का देश के निर्माण में बहुत योगदान था. उन्होंने कहा कि भले ही उनकी पार्टी बीजेपी के साथ नहीं है, लेकिन वाजपेयी को हमेशा याद किया जाएगा.

गैर-कांग्रेसी दलों के नेहरू वाजपेयी- राउत

संजय राउत ने कहा कि मौजूदा बीजेपी भले ही नेहरू की विरासत को बदनाम कर रही हो, लेकिन वाजपेयी आज भी गैर-कांग्रेसी दलों के नेहरू हैं. उन्होंने कहा, “कट्टर हिंदुत्ववादी होने के बावजूद, वाजपेयी का मानना था कि देश सभी का है. वाजपेयी के नेतृत्व में भाजपा सर्वसमावेशी थी और लोगों का मानना था कि पार्टी भारत को एकजुट और मजबूत रखना चाहती है.

उन्होंने आगे कहा कि यही कारण है कि पंडित नेहरू ने भी वाजपेयी की सराहना की थी. राउत ने कहा कि (शिवसेना संस्थापक) बालासाहेब ठाकरे के मन में वाजपेयी के प्रति बहुत सम्मान था और वह उनके शब्दों को महत्व देते थे.

आखिरी किला बचाने में लगी उद्धव शिवसेना

विधानसभा चुनाव में करारी हार के बाद उद्धव ठाकरे अपना आखिरी किला बीएमसी बचाने में लगे हुए हैं. यही कारण है कि राउत ने कहा कि बीएमसी का चुनाव शिवसेना (यूबीटी) महाविकास अघाड़ी के साथ नहीं लड़ेगी. बीएमसी शिवसेना का गढ़ माना जाता है और 1996 से ही लगातार पार्टी यहां अपना मेयर बनाती रही है.

मुंबई नगर निगम में 236 सीटें हैं, जहां मेयर चुनने के लिए कम से कम 119 पार्षदों की जरूरत रहती है. 2017 में आखिरी बार मुंबई में निकाय के चुनाव कराए गए थे. उस चुनाव में 84 सीटों पर शिवसेना और 80 सीटों पर बीजेपी ने जीत हासिल की थी. अब देखना होगा कि इस बार के चुनाव में उद्धव गुट किस तरीके से मैदान में उतरता है.

अतुल सुभाष केस: निकिता की सैलरी थी अतुल से दोगुनी, कोर्ट में 31 दिसंबर को होगी सुनवाई

AI सॉफ्टवेयर इंजीनियर अतुल सुभाष केस में अभी पुलिस की जांच चल रही है. अब इस मामले में जौनपुर फैमिली कोर्ट से एक और नया दस्तावेज सामने आया है. अतुल सुभाष बनाम निकिता सिंघानिया केस में कई ऐसी बातें सामने निकलकर आई हैं जो कि बेहद चौंकाने वाली हैं. कोर्ट से मिले दस्तावेजों के मुताबिक, निकिता सिंघानिया की सैलरी अतुल से दोगुना थी.

जौनपुर फैमिली कोर्ट के दस्तावेजों के मुताबिक- निकिता की एसेंचर कंपनी में सीनियर एनालिस्ट के तौर पर काम करती है. उसकी सालाना इनकम 20 लाख से भी ज्यादा है. अतुल शुरुआत में बेटे व्योम के लिए पांच हजार रुपये मनी ऑर्डर के जरिए भिजवाता था. लेकिन मनी ऑर्डर रिसीव न होने के कारण अतुल फिर पैसों को पंजाब नेशनल बैंक में जमा करवाता था. अतुल ने इल्जाम लगाया कि निकिता ने बाद में कोर्ट के जरिए उससे 40 हजार रुपये लेने लगी.

अतुल ये रकम भी चुका रहा था. लेकिन निकिता ने बाद में सेटलमेंट के लिए 1 करोड़ की डिमांड की. उसके बाद उसने सीधे 3 करोड़ रुपये मांगना शुरू कर दिए. बोली कि मैं 3 करोड़ से एक रुपया भी कम नहीं लूंगी. अतुल ने वीडियो में कहा था- मैंने कोर्ट में कई सबूत जज साहिबा को दिखाए कि निकिता अच्छी सैलरी ले रही है. बेटे व्योम के लिए 40 हजार भी बहुत ज्यादा हैं. मैं खुद 80 हजार हर महीना कमाता हूं. अब वो मुझसे 80 हजार मांगेगी तो मैं कहां से दूंगा.

वीडियो में अतुल ने कहा- मैंने जब जज साहिबा को अपनी परेशानी बताई तो वो हंसने लगीं. कहने लगीं कि होंगे तुम्हारे पास 3 करोड़. तभी तो तुम्हारी बीवी मांग रही है. मैंने कहा कि मैम आप चेक कर सकते हैं कि इस तरह के कितने ही केस होते हैं, जहां पुरुष सुसाइड कर लेते हैं. अब किसी से इतना पैसा मांगा जाए तो वो तो सुसाइड ही कर लेगा. यह सुनकर निकिता ने कहा कि तुम भी कर लो सुसाइड. निकिता की बात पर एक्शन लेने के बजाय जज साहिबा हंस रही थीं. उन्होंने फिर निकिता को बाहर भेजा और मुझसे सेटलमेंट के बदले 5 लाख रुपये की डिमांड की.

अतुल से डबल सैलरी थी निकिता की

हैरानी की बात ये कि निकिता अगर 20 लाख रुपये कमाती थी तो क्यों वो अतुल से इतने पैसे की डिमांड कर रही थी. अतुल की सैलरी हर महीना 80 हजार थी तो वहीं निकिता की 1 लाख 66 हजार रुपये प्रति महीना सैलरी थी. निकिता मेंटेनेंस मांगने का कारण बताया था. कहा था- मैंने एक घर लिया है. उसकी हर महीना किस्त मेरी सैलरी से कटती है. मेरे पास पैसा नहीं बचता कि मैं अपना और बेटे का खर्च चला सकूं.

31 दिसंबर को कोर्ट में सुनवाई

24 पन्नों का सुसाइड नोट लिख और 90 मिनट का वीडियो बनाकर 9 दिसंबर को रात साढ़े 11 बजे अतुल ने बेंगलुरु स्थित फ्लैट में फंदा लगाकर सुसाइड कर लिया. 10 दिसंबर को अतुल के भाई विकास की तहरीर पर पुलिस ने पत्नी निकिता, सास निशा, साला अनुराग और चाचा ससुर सुशील सिंघानिया के खिलाफ केस दर्ज किया. 13 दिसंबर को चाचा ससुर को छोड़ बाकी के तीन आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया गया. अब इस केस में 31 दिसंबर को तीनों आरोपियों को कोर्ट में पेश किया जाएगा.