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महापौर पद पर प्रत्याशी चयन के लिए कांग्रेस करायेगी सर्वे, प्रदेश अध्यक्ष दीपक बैज बोले- हमारी तैयारी पूरी

रायपुर-   छत्तीसगढ़ में निगम चुनाव का काउंटडाउन जारी है। सबकुछ ठीक रहा, तो इसी महीने आचार संहिता लागू हो जायेगी। इधर चुनाव की तारीखों के ऐलान से पहले ही राजननीतिक दलों ने तैयारियां शुरू कर दी है।आज कांग्रेस ने निकाय चुनाव को लेकर बैठक की। बैठक में चुनाव की रणनीति तैयार की गयी।

बैठक के बाद कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष दीपक बैज ने कहा कि छत्तीसगढ़ में मेयर की टिकट देने के लिए कांग्रेस पार्टी सर्वे कराएगी। सर्वे के आधार पर ही प्रत्याशी का चयन किया जायेगा।हालांकि बैज ने ये भी कहा कि प्रत्याशी को लेकर कांग्रेस कार्यकर्ताओं से भी चर्चा की जायेगी।

प्रत्याशियों को लेकर कांग्रेस के सीनियर नेताओं से भी चर्चा की जायेगी। कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष ने कहा कि निकाय चुनाव को लेकर कांग्रेस पार्टी पूरी तरह से तैयार है। पूरी मजबूती के साथ प्रदेश में कांग्रेस पार्टी चुनाव लड़ेगी और जीत हासिल करेगी।

IPS TRANSFER: रायपुर एसपी बने लाल उम्मेद सिंह, कोरिया एसपी भी बदले गए, देखें आदेश-
रायपुर- राज्य सरकार ने पुलिस विभाग में बड़ा फेरबदल किया है. राजधानी रायपुर की कमान लाल उमेद सिंह को दी गई है. वहीं रायपुर एसपी संतोष सिंह को सहायक पुलिस महानिरीक्षक पुलिस मुख्यालय में पदस्थ किया गया है. इसके अलावा एसपी कोरिया आईपीएस सूरज सिंह परिहार को 14 वीं बटालियन बालोद भेज गया है. वहीं आईपीएस रवि कुर्रे को कोरिया का पुलिस अधीक्षक बनाया गया है. वहीं राज्य पुलिस सेवा के अधिकारी हरीश राठौर को एसपी सीएम सिक्योरिटी बनाया गया है.
देंखें आदेश-
सिविल जज परीक्षा का रिजल्ट जारी, टॉप 10 में 7 लड़कियां, यहां देखें पूरा परिणाम
बिलासपुर-    छत्तीसगढ़ लोक सेवा आयोग की सिविल जज (प्रवेश स्तर) मुख्य परीक्षा 2023 के अंतिम परिणाम जारी कर दिए गए हैं। इस बार टॉप 10 में 7 लड़कियों ने जगह बनाई है। श्वेता दीवान ने प्रावीण्य सूची में प्रथम स्थान प्राप्त किया है, जबकि महिमा शर्मा ने दूसरा स्थान हासिल किया। निखिल साहू ने तीसरे स्थान पर कब्जा किया।

इन अभ्यर्थियों ने टॉप 10 में बनाई जगह

बता दें कि छत्तीसगढ़ लोक सेवा आयोग द्वारा सिविल जज (प्रवेश स्तर) के कुल 49 पदों के लिए परीक्षा हुई थी, जिसमें उत्तीर्ण 150 अभ्यर्थियों का 2 दिसंबर से 11 दिसंबर तक साक्षात्कार लिया गया था। साक्षात्कार के बाद आज लिखित परीक्षा और साक्षात्कार में प्राप्त अंकों के कुल योग के आधार पर 150 अभ्यर्थियों की समेकित मेरिट सूची जारी की गई है।

देखें रिजल्ट –

साय सरकार के एक साल पूर्ण होने पर साइंस कॉलेज में होगा भव्य कार्यक्रम, प्रभारी मंत्री केदार कश्यप ने तैयारियों का लिया जायजा

रायपुर-  भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा 13 दिसंबर को छत्तीसगढ़ दौरे पर रहेंगे। इस मौके पर साय सरकार के एक साल पूरे होने के उपलक्ष्य में सरकार का रिपोर्ट कार्ड जारी किया जाएगा। यह कार्यक्रम रायपुर के साइंस कॉलेज मैदान में आयोजित होगा, जिसमें हजारों की संख्या में लोग शामिल होंगे। कार्यक्रम स्थल पर एक मुख्य मंच और चार बड़े डोम बनाए गए हैं। आज वन एवं सहकारिता मंत्री केदार कश्यप ने तैयारियों का जायजा लिया। उनके साथ संगठन महामंत्री पवन साय, भाजपा नेता रामू रोहरा और रायपुर कलेक्टर गौरव कुमार सिंह भी मौजूद थे।

मंत्री केदार कश्यप ने बताया कि आगामी 13 तारीख को हमारी सरकार के 1 साल पूरे हो रहे हैं, जिसके मद्देनजर साइंस कॉलेज मैदान में आयोजित होने वाले कार्यक्रम की तैयारियां अंतिम चरणों में हैं। उन्होंने बताया कि कलेक्टर गौरव कुमार सिंह को कार्यक्रमों की तैयारियों की जिम्मेदारी दी गई है। यहां तैयारियां अंतिम चरणों में हैं, जो कि कल तक पूरी हो जाएगी।

करीब 50,000 लोग होंगे शामिल

गौरतलब है कि भाजपा के राष्ट्रीय संगठन ने राज्य सरकार के कामकाज की समीक्षा करने का निर्णय लिया है। इस दौरे के मद्देनजर आज बीजेपी प्रदेश कार्यालय में एक बड़ी बैठक होगी, जिसमें सीएम साय भी शामिल होंगे। जानकारी के अनुसार रायपुर जिले के बड़े पदाधिकारियों सहित आसपास के जिलों से करीब 50,000 लोग मौजूद रहेंगे।

छत्तीसगढ़ के प्रतिभाशाली युवाओं के पास बिज़नेस आइडिया की कमी नहीं, सरकार ने तैयार किया युवा उद्यमियों के लिए सपोर्ट सिस्टम - मुख्यमंत्री श्री साय

रायपुर-   मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने आज भाठागांव स्थित अंतरराज्यीय बस स्टैंड में नवनिर्मित इनोवेशन सेंटर का फीता काटकर शुभारंभ किया। साथ ही जयस्तंभ चौक के मल्टीलेवल पार्किंग में नवनिर्मित को-वर्किंग स्पेस आरंभ का वर्चुअली लोकार्पण किया। इस अवसर पर मुख्यमंत्री श्री साय ने सेंटर फाॅर इनोवेशन, ट्रेड एंड स्किलिंग की स्थापना, रायपुर जिले में 1000 सीटर को-वर्किंग स्पेस निर्माण और नगर निगम क्षेत्र के प्रत्येक जोन में एक-एक बाॅक्स स्पोर्ट्स काॅम्प्लेक्स निर्माण की घोषणा की। इस अवसर पर ओयो के फाउंडर रितेश अग्रवाल ने छत्तीसगढ़ में 500 करोड़ रूपए का निवेश करने और 15 हजार रोजगार सृजन करने की बात कहीं। इनोवेट के गेम जोन में मुख्यमंत्री श्री साय एवं ओयो फाउंडर श्री अग्रवाल ने टेबल टेनिस खेल में हाथ आजमाया।

मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने नागरिक सुविधाओं को बढ़ाने एवं रोजगार के नये अवसर पैदा करने स्मार्ट सिटी का विचार क्रियान्वित किया। रायपुर को भी स्मार्ट सिटी के रूप में चयनित किया गया है। राज्य सरकार स्मार्ट सिटी के अनुरूप सुविधाओं को लगातार बढ़ाने के लिए पहल कर रही हैं। श्री साय ने कहा कि युवा उद्यमियों के दिमाग में उद्यम के बहुत से विचार हैं। वे अपना स्टार्टअप आरंभ करना चाहते हैं बस उन्हें थोड़ा सहयोग देने की आवश्यकता है फिर वे कमाल कर दिखाएंगे। सरकार युवाओं के लिए यही सपोर्ट सिस्टम तैयार कर रही है। मुख्यमंत्री श्री साय ने जिला प्रशासन के कार्याें की सरहाना की।

उन्होंने कहा कि स्टार्टअप के लिए एक आफिस, फर्नीचर, एक अच्छा लोकेशन, कंप्यूटर, वाईफाई चाहिए, लेकिन इतने सब कुछ के लिए ही जो बजट लगता है वो बहुत से युवा उद्यमियों के बस की बात नहीं होती। को-वर्किंग एंड इनोवेशन सेंटर के रूप में यही आफिस स्पेस उन्हें उपलब्ध करा रहे हैं। मुख्यमंत्री श्री साय ने कहा कि 48 लाख रुपए की लागत से जयस्तंभ चैक के मल्टीलेवल पार्किंग सेंटर में आरंभ स्टार्टअप को-वर्किंग सेंटर तथा एक करोड़ रुपए की लागत से अंतरराज्यीय बस टर्मिनल में इनोवेशन सेंटर तैयार किया गया है। यहां स्टार्टअप उद्यमियों को काम करने के लिए आफिस मिल जाएगा। साथ ही प्राइवेट कैबिन होंगे, कंप्यूटर मिल जाएंगे और फर्नीचर उपलब्ध होगा, कैफेटेरिया होगा। प्रेजेंटेशन के लिए आडिटोरियम होगा। उन्हें केवल अपने आइडिया पर काम करना होगा।

मुख्यमंत्री श्री साय ने कहा कि को-वर्किंग सेंटर होगा तो अन्य स्टार्टअप कंपनियां भी यहां आपरेट करेंगी। इस तरह से एक तरह की सोच वाले उद्यमी एक ही स्थान पर काम करेंगे, इससे वे आपस में विचारों को साझा भी करेंगे, जिससे नवाचार का एक बेहतरीन वातावरण राजधानी में तैयार होगा। उन्होंने कहा कि रितेश अग्रवाल ने छोटी सी उम्र में बड़ा मुकाम हासिल किया। उनके पास एक विचार था कि लोग अच्छे सुविधाजनक होटल चाहते हैं। डिजिटल क्रांति उसी समय शुरू हुई थी, लोग तेजी से स्मार्ट फोन अपना रहे थे, उन्होंने ओयो एप आरंभ किया और इस छोटे से विचार ने हास्पिटैलिटी सेक्टर में क्रांति ला दी। छत्तीसगढ़ के प्रतिभाशाली युवाओं के पास भी ऐसे अनेक विचार हैं। उन्हें प्रोत्साहित करने के लिए संकल्पित हैं। आज को-वर्किंग एंड इनोवेशन सेंटर की शुरूआत इसी का हिस्सा है।

इस अवसर पर ओयो के फाउंडर रितेश अग्रवाल ने कहा कि स्टार्टअप के जरिए हमें बड़ी सफलता मिली थी और वर्तमान में 22 हजार होटल संचालित हो रहा है। छत्तीसगढ़ में इनोवेट के शुरू होने से हजारों युवाओं को फाउंडर बनने का अवसर मिलेगा। गांव के युवाओं के सपने भी पूरे हो सकेंगे। श्री अग्रवाल ने कहा कि छत्तीसगढ़ में आने वाले समय में 500 करोड़ रूपए निवेश करने की तैयारी हमारी कंपनी ने की है और 15 हजार रोजगार भी सृजनित किए जाएंगे। उन्होंने छत्तीसगढ़ सरकार की नीतियों की सरहाना करते हुए कहा कि यहां पर्यटन को उद्योग का दर्जा दिया गया है, इससे निश्चित ही स्टार्टअप शुरू करने वाले युवाओं को प्रोत्साहन मिलेगा। उन्होंने विश्वास जताया कि छत्तीसगढ़ एक स्टार्टअप राज्य बनेगा। श्री अग्रवाल ने खुशी जताते हुए कहा कि यह देखा गया है कि बड़ी कंपनी के शुभारंभ में उद्यमी पहुंचते थे, लेकिन आज छत्तीसगढ़ में सुखद अवसर है कि मुख्यमंत्री सहित अन्य सम्मानीय जनप्रतिनिधि शामिल हुए है।

कलेक्टर डाॅ. गौरव सिंह ने कहा कि मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय के नेतृत्व में नवाचार की दिशा में ऐतिहासिक कदम उठाए गए है। इससे जिले में रोजगार की दिशा में आगे बढ़ने का अवसर मिलेगा। 50 से अधिक महिला नेतृत्व वाले स्टार्टअप को भी बढ़ावा दिया जाएगा। मुख्यमंत्री श्री साय ने नवगुरूकुल संस्था के युवाओं को जाॅब आफर लेटर दिया। शी-हब से जुड़ी महिलाओं और स्टार्टअप कंपनियों के युवा उद्यमियों का सम्मान किया। साथ ही बी.पी.ओ. सेंटर से जुड़े युवाओं को नियुक्ति पत्र दिया। कार्यक्रम के दौरान नवाचार क्षेत्र में उत्कृष्ट कार्य करने वाले नगर निगम के अधिकारी, कर्मचारियों का सम्मान किया। इस अवसर पर विधायक मोतीलाल साहू, पुरंदर मिश्रा, अनुज शर्मा, विक्रम उसेंडी, कलेक्टर डाॅ. गौरव सिंह, नगर निगम आयुक्त अबिनाश मिश्रा, जिला पंचायत सीईओ विश्वदीप समेत अन्य अधिकारी एवं कर्मचारी उपस्थित थे।

एंटी नारकोटिक्स टास्क फोर्स की बड़ी कार्रवाई: 144 किलो गांजा बरामद, 22 लाख आंकी गई कीमत, 2 तस्कर गिरफ्तार

महासमुंद-    एंटी नारकोटिक्स टास्क फोर्स (ANTF) और थाना सिंघोडा पुलिस ने अवैध मादक पदार्थ गांजा की तस्करी के खिलाफ बड़ी कार्रवाई की है. पुलिस ने 144 किलो गांजा और एक सफेद रंग की स्वीफ्ट डीजायर कार में तस्करी करते हुए दो अंतरराज्यीय तस्करों को गिरफ्तार किया. यह गांजा ओडिशा से उत्तर प्रदेश ले जाया जा रहा था.

आरोपियों से पूछताछ में सामने आया कि वे ओडिशा से गांजा लाकर उत्तर प्रदेश और मध्यप्रदेश में बेचने के लिए ले जा रहे थे. एंटी नारकोटिक्स टास्क फोर्स द्वारा गठित एक 11 सदस्यीय टीम ने इस ऑपरेशन को अंजाम दिया, जिसमें सूचनाओं के आधार पर गांजा तस्करी की जानकारी मिली और महासमुंद जिले में घेराबंदी की गई.

10 दिसंबर, 2024 को मुखबिर से मिली जानकारी के आधार पर पुलिस ने महासमुंद में प्रवेश करने वाले सभी प्वाइंट्स पर बल तैनात किया और संदिग्ध वाहनों की जांच शुरू की. इसी दौरान एक सफेद रंग की स्वीफ्ट डीजायर कार को संदिग्ध पाया गया. जब पुलिस ने कार को रोकने की कोशिश की, तो आरोपी वाहन को छोड़कर जंगल की ओर भाग गए, लेकिन पुलिस ने घेराबंदी कर उन्हें पकड़ लिया.

पुलिस ने जब वाहन की तलाशी ली, तो उसमें प्लास्टिक बोरियों में भरकर 144 किलो गांजा बरामद किया, जिसकी कीमत करीब 21,60,000 रुपये बताई जा रही है. इस कार्रवाई में कार सहित कुल 27,60,000 रुपये का सामान जब्त किया गया.

गांजा तस्करी की इस घटना में गिरफ्तार किए गए आरोपी रामसरे राजभर (30 वर्ष, वाराणसी, उत्तर प्रदेश) और दीपक सिंह (25 वर्ष, रीवा, मध्य प्रदेश) के खिलाफ थाना सिंघोडा में एनडीपीएस एक्ट की धारा 20(ख) के तहत मामला दर्ज कर उन्हें न्यायिक रिमांड पर भेजा गया है.

बस्तर अंचल में अब बह रही है विकास की बयार, मुख्यमंत्री श्री साय ने पखांजूर में 254 करोड़ रुपए के विकास कार्यों का किया लोकार्पण और भूमिपूजन

रायपुर-     प्रदेश के मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने आज कांकेर जिले के पखांजूर में आयोजित कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुए कहा कि प्रदेश सरकार सभी वर्गों की भलाई और उन्नति के लिए कार्य कर रही है। बस्तर अंचल के विकास के लिए हर संभव प्रयास किए जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि नियद नेल्ला नार जैसी योजनाओं से बस्तर में रहने वाले लोगों को केन्द्र और राज्य सरकार की योजनाओं के साथ-साथ सड़क, स्कूल, पेयजल, आवास, बिजली जैसी मूलभूत सुविधाएं आसानी मिल रही है। अब बस्तर में विकास की बयार बह रही है।

मुख्यमंत्री श्री साय ने कार्यक्रम में पखांजूर से मायापुर सड़क सुदृढ़ीकरण के लिए 8.78 करोड़ रुपए, खेल परिसर निर्माण के लिए 02 करोड़, सिविल अस्पताल के मरम्मत कार्य के लिए 30 लाख रूपए और नालंदा परिसर लाइब्रेरी निर्माण की घोषणा की। उन्होंने नगर पंचायत के पूर्व अध्यक्ष असीम रॉय की प्रतिमा का अनावरण किया। इस मौके पर मुख्यमंत्री श्री साय ने कार्यक्रम में कुल 254.15 करोड़ रुपए के 68 निर्माण कार्यों का लोकार्पण और भूमिपूजन किया। इनमें 215.41 करोड़ रूपए के 43 विकास कार्यों का भूमिपूजन एवं 38.74 करोड़ रूपए के 25 कार्यों का लोकार्पण सम्मिलित हैं।

मुख्यमंत्री ने कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुए कहा कि 13 दिसंबर को प्रदेश की सरकार का एक साल पूरा होने जा रहा है और इतने कम समय में जनता से किए गए वायदों को पूरा करने सरकार हरसंभव प्रयास कर रही है। उन्होंने बताया कि सरकार गठन के तुरंत बाद 25 दिसंबर को सुशासन दिवस पर किसानों को अंतर की राशि का भुगतान किया गया है। प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत नए आवासों की स्वीकृति दी गई। उन्होंने कहा कि तेंदूपत्ता संग्राहकों का पारिश्रमिक प्रति मानक बोरा 4000 रूपए से बढ़ाकर 5500 रूपए किया गया है।

मुख्यमंत्री श्री साय ने कहा कि बस्तर के विकास के लिए सरकार हरसंभव कोशिश कर रही है। नियद नेल्लानार योजना के तहत माओवाद प्रभावित क्षेत्रों में निवासरत ग्रामीणों को शासन की योजनाओं का लाभ दिया जा रहा है। वहीं विशेष पिछड़ी जनजातियों को विकास से जोड़ने पीएम जनमन योजना चलाई जा रही है। प्रदेश में नई उद्योग नीति लागू कर व्यवसाय और उद्योग को बढ़ावा दिया जा रहा है। इसी तरह राज्य पीएससी की परीक्षा में गड़बड़ी करने वालों के खिलाफ सीबीआई लगातार कार्रवाई कर रही है।

इस अवसर पर उप मुख्यमंत्री अरुण साव ने कहा कि पिछले एक साल में साय सरकार ने प्रदेशवासियों के लिए अनेक कार्य किए। राज्य की 70 लाख महिलाओं को महतारी वंदन योजना में हर महीने एक-एक हजार रूपए की राशि दी जा रही है। प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत लगातार आवास बन रहे है। किसानों से लेकर हर वर्ग का कल्याण हो रहा है। कार्यक्रम को अंतागढ़ विधायक विक्रम देव उसेंडी ने भी सम्बोधित किया।

कार्यक्रम में कांकेर विधायक आशाराम नेताम, नगर पंचायत पखांजूर की अध्यक्ष मोनिका साहा, पूर्व विधायक देवलाल दुग्गा, मंतूराम पवार, राज्य मत्स्य विकास बोर्ड के पूर्व अध्यक्ष भरत मटियारा सहित अनेक जनप्रतिनिधिगण और बड़ी संख्या में लोग उपस्थित थे।

नेता प्रतिपक्ष डॉ. चरणदास महंत ने राज्यपाल को लिखा पत्र, धान खरीदी के लिए खरीदे गए बारदाने को लेकर कही ये बात

रायपुर-  छत्तीसगढ़ विधानसभा के नेता प्रतिपक्ष डॉ. चरणदास महंत ने आज राज्यपाल को पत्र लिखा है. जिसमें उन्होंने खरीफ विपणन वर्ष 2024-25 के लिए क्रय किये गये बारदाने को अमानक बताया है. इस मामले पर नेता प्रतिपक्ष डॉ. महंत ने राज्यपाल को त्वरित रूप से भारत सरकार के निर्देशों के अनुसार कार्यवाही किए जाने के लिए खाद्य मंत्री और सहकारिता मंत्री को निर्देशित करने का आग्रह किया है.

नेता प्रतिपक्ष डॉ. चरणदास महंत ने धान उपार्जन के लिये श्री गौरी शंकर जुट मिल पश्चिम बंगाल से क्रय किए गए बरदाने को अमानक बताते हुए कहा कि, धान खरीदी का कार्य तीव्र गति से चल रहा है। मैंने जिला बलौदाबाजार-भाटापारा के धान खरीदी केंद्र तरेंगा का निरीक्षण किया था। इस धान खरीदी केंद्र पर जो जूट का नया बारदाना उपयोग में लाया जा रहा था, उनमे से कई का वजन करवाने पर पाया गया कि सभी बारदाने का अधिकतम वजन 480 ग्राम था. भारत सरकार के निर्धारित मापदण्डों के अनुसार नए जुट बरदानों का औसत न्यूनतम वजन 580 ग्राम होना चाहिए. इस वजन में विचलन 8 और 6 प्रतिशत मान्य है, यानी 626 ग्राम से अधिक वजन वाले और 545 ग्राम से कम वजन वाले बारदाने अमानक माने जाएगें। साथ ही अमानक बारदानों का उपयोग धान और चावल के लिए नहीं किया जा सकता।

कम वजनी बारदानों के कारण किसानों से लिया जा रहा अधिक धान

नेता प्रतिपक्ष डॉ. चरणदास महंत ने कहा कि धान खरीदी केंद्र तरेंगा में जिन बारदानों का वजन कम पाया गया है, वे सभी श्री गौरी शंकर जुट मिल पश्चिम बंगाल द्वारा निर्मित किये गये थे. इस मिल के क्रय किए गए बारदाने और कई धान खरीदी केंद्रों पर भी भेजे गए होंगे.

गुणवत्ता की जांच के तीन स्तर :-

(1) जुट मिल स्तर पर

(2) जुट कमिश्नर जांच

(3) भारत सरकार द्वारा छत्तीसगढ़ में रैक पॉइंट पर विपणन संघ और धान खरीदी केंद्र पर केंद्र प्रभारी द्वारा।

इन स्तरों पर जांच के बाद भी यह आश्चर्यजनक है की सभी स्तरों पर बारदानों के अमानक होने के तथ्य की उपेक्षा की जाती रही। यह एक गंभीर मामला है। बारदानों के कम वजन के कारण किसानो का धान भी अधिक लिया जा रहा है। नेता प्रतिपक्ष महंत ने राज्यपाल को खाद्य मंत्री और सहकारिता मंत्री को निर्देशित कर भारत सरकार के निर्देशों के अनुसार कार्यवाही किये जानें का आग्रह किया है.

मुख्यमंत्री की पहल पर सुगमता से हो रही है धान की खरीदी, अब तक 42.83 लाख मीट्रिक टन धान की हुई खरीदी

रायपुर-    मुख्यमंत्री विष्णु देव साय के मार्गदर्शन में प्रदेश के किसानों से सुगमता पूर्वक धान की खरीदी की जा रही है। वहीं धान खरीदी व्यवस्था पर वरिष्ठ अधिकारियों द्वारा लगातार मॉनीटरिंग की जा रही है। राज्य में धान 14 नवम्बर से शुरू हुए धान खरीदी का सिलसिला अनवरत रूप से जारी है। अब तक 42.83 लाख मीट्रिक टन धान की खरीदी हो चुकी है। धान खरीदी के एवज में 9.14 लाख किसानों को बैंक लिकिंग व्यवस्था के तहत 9159 करोड़ 61 लाख रूपए का भुगतान किया गया है। धान खरीदी का यह अभियान 31 जनवरी 2025 तक चलेगी। धान खरीदी के साथ-साथ मिलर्स द्वारा धान का उठाव भी शुरू कर दिया गया है। धान उठाव के लिए 2.31 लाख मीट्रिक टन धान के लिए डीओ जारी किया गया था, जिसके विरूद्ध 31 हजार मीट्रिक टन धान का उठाव कर लिया गया है।
खाद्य विभाग के अधिकारियों ने बताया कि इस खरीफ वर्ष के लिए 27.68 लाख किसानों द्वारा पंजीयन कराया गया है। इसमें 1.45 लाख नए किसान शामिल है। इस वर्ष 2739 उपार्जन केन्द्रों के माध्यम से 160 लाख मीट्रिक टन धान खरीदी अनुमानित है।
खाद्य विभाग के अधिकारियों ने बताया कि आज 11 दिसम्बर को 84341 किसानों से 3.34 लाख मीट्रिक टन धान खरीदी की गई है। इसके लिए 94279 टोकन जारी किए गए थे। आगामी दिवस के लिए 92036 टोकन जारी किए गए हैं।

राज्य सरकार धान उपार्जन केन्द्रों में शिकायत एवं निवारण के लिये हेल्प लाइन नंबर जारी किए है, जिसका नं. 0771-2425463 है। धान बेचने वाले कोई भी किसान इस हेल्पलाईन नम्बर पर फोन कर अपनी समस्यओं का समाधान कर सकते है।

विद्यार्थियों को मिलेगा अब बेहतर शैक्षणिक माहौल, 118 लेक्चरर, 96शिक्षक और263 सहायक शिक्षकों,40 पीवीटीजी सहित 500से अधिक शिक्षकों की हुई नियुक्ति

रायपुर-    कुछ समय पहले तक अपने विद्यालय में शिक्षकों की कमी को लेकर विद्यार्थी परेशान थे। स्कूलों में विषय से संबधित शिक्षक नहीं होन या फिर एकमात्र शिक्षक होने और कभी-कभी उनके अवकाश में रहने से अध्यापन ठप होने जाने की शिकायत पालकों की भी रहती थी। कई बार शिक्षकों की कमी को लेकर प्रदर्शन तक भी होते रहते थे। शिक्षकों की कमी का सबसे ज्यादा खामियाजा विद्यार्थियों को ही भुगतना पड़ता था। समय पर पाठयक्रम पूरे नहीं होते थे तो उन्हें विषय का ज्ञान भी नहीं मिल पाता था। कई बार तो शिक्षकों की कमी को देखते हुए कुछ विद्यार्थी अपने आसपास के विद्यालयों से दूर जाकर अन्य विद्यालय तक में पढ़ाई करते थे। वहीं शिक्षक नहीं होने पर सीमित संख्या में उपलब्ध शिक्षकों के कंधे पर भी अन्य विषयों का अध्यापन कराने की मजबूरी आ जाती थी। कुछ इन्हीं समस्याओं को ध्यान रखकर विद्यार्थियों के सर्वांगीण विकास के लिए नवाचारी और गुणवत्तापूर्ण शिक्षा व्यवस्था सुनिश्चित करते हुए मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय के दिशा निर्देशन में कलेक्टर अजीत वसंत द्वारा कोरबा जिले में बेहतर शैक्षणिक वातावरण तैयार किया जा रहा है। जिले में सैकड़ों ऐसे विद्यालय थे, जहां शिक्षकों की कमी थीं, उन विद्यालयों में विषय से संबंधित लेक्चचर, शिक्षकों, सहायक शिक्षकों की नियुक्ति कर दी गई है। अब शिक्षक नियुक्त हो जाने से विद्यालयों में अध्यापन व्यवस्था पहले से बेहतर हो गई है।

कोरबा जिले में शिक्षा व्यवस्था को पहले से और बेहतर बनाने की दिशा में लगातार कार्य किए जा रहे हैं। कोरबा जिले में दो हजार से अधिक विद्यालय है। हायर सेकेण्डरी, माध्यमिक शाला, प्राथमिक शाला विद्यालय में शिक्षकों की कमी की शिकायत लगातार कलेक्टर के पास आती रहती थी। उन्होंने जिला खनिज संस्थान न्यास के माध्यम से सभी विद्यालयों की जानकारी जुटाकर शिक्षकों की कमी को दूर करने के निर्देश जिला शिक्षा अधिकारी को दिए। हायर सेकेण्डरी स्कूलों में विषय शिक्षकों की भर्ती के लिए योग्य उम्मीदवारों से आवेदन मंगाए गए और निर्धारित अर्हता पूरी करने वाले उम्मदवारों का चयन किया गया। प्राथमिक शाला कोरई में मानदेय के आधार पर नियुक्त हुई शिक्षिका चंद्रिका पैंकरा और प्राथमिक शाला कदमझेरिया की शिक्षिका शकुंतला कंवर ने बताया कि स्कूल में अतिथि शिक्षक के रूप में जिम्मेदारी मिलने के बाद वे भी जिम्मेदारी के साथ बच्चों का अध्यापन करा रहे हैं। यह खुशी की बात है कि शिक्षकों की नियुक्ति में पारदर्शिता बरतते हुए गांव के बेरोजगार योग्य युवाओं को भी अवसर दिया गया है। जिले के हायर सेकेण्डरी स्कूलों में कुल 118 लेक्चरर की नियुक्ति की गई। इसी तरह माध्यमिक शाला में 96 शिक्षकों और प्राथमिक शाला में 263 सहायक शिक्षकों सहित 40 पीवीटीजी शिक्षकों की नियुक्ति की गई। कुल 517 शिक्षकों की नियुक्ति जिले में की गई है। सभी शिक्षकों को मानदेय के आधार पर रखा गया है और डीएमएफ से उन्हें प्रतिमाह वेतन दिया जाता है। जिसमें रिक्त पदों के विरूद्ध शिक्षकों की नियुक्ति हो जाने से विद्यार्थियों को बेहतर शैक्षिक माहौल मिलने लगा है। उनका समय पर पाठयक्रम पूरा हो रहा है वहीं विषय ज्ञान का स्तर भी सुधरने लगा है। एकल शिक्षकीय विद्यालयों में भी शिक्षकों को राहत मिली है। अभिभावक भी इस व्यवस्था से संतुष्ट है। खास बात यह भी है कि शिक्षकों की नियुक्ति में जिले के विशेष पिछड़ी जनजाति परिवार पहाड़ी कोरवा, बिरहोर समाज को भी वरीयता दी गई है। उन्हें भी उनकी योग्यता के आधार पर जिले के अनेक विद्यालयों में शिक्षक सहित भृत्य एवं अन्य पदों पर रखा गया है, ताकि वे आर्थिक रूप से मजबूत होकर समाज की मुख्यधारा में आ सकें।

भृत्यों की नियुक्ति सहित अन्य सुविधाओं पर भी दिया गया है ध्यान -

जिले के हायर सेकेण्डरी, माध्यमिक शाला, प्राथमिक शाला विद्यालय में लेक्चचर, शिक्षकों, सहायक शिक्षकों की नियुक्ति तो की ही गई है। इसके साथ ही विद्यालयों में 270 भृत्य भी नियुक्त किए गए हैं। कलेक्टर अजीत वसंत ने जर्जर विद्यालयों की भी सुध ली है। उन्होंने जर्जर भवनों की जानकारी मंगाकर नए भवन स्वीकृत किए हैं। जिले में संचालित शासकीय संस्थाओं के भवन, किचन शेड, शौचालय इत्यादि की वर्तमान स्थिति की समीक्षा कर आवश्यकता अनुसार स्वीकृति दी गई है। जिले के परीक्षा परिणाम में सुधार हेतु केंद्रीय परीक्षा पद्धति अपनाते हुए जिले के समस्त विद्यालय हेतु पाठ्यक्रम निर्धारित कर नियत समय पर त्रैमासिक एवं अर्धवार्षिक परीक्षा संचालित करने हेतु निर्देशित किया गया है। कक्षा 10वीं एवं 12वीं के कमजोर छात्र-छात्राओं के लिए बोर्ड परीक्षा के पूर्व शैक्षणिक स्तर में सुधार हेतु नवीन कार्य योजना बनाने के निर्देश दिए गए हैं। जिले के 2100 से अधिक प्राइमरी तथा मिडिल स्कूलों में बच्चों की उपस्थिति बढ़ाने नाश्ते वितरण कराए जा रहे हैं। खाना पकाने गैस कनेक्शन दी गई है। विद्यालयों में आवश्यक संसाधान मुहैया कराया जा रहा है और शैक्षणिक माहौल को बेहतर बनाने का प्रयास किया जा रहा है।