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बिरसा मुंडा की 150वीं जयंती के अवसर पर केंद्र सरकार ने सराय काले खां चौक का नाम बदलकर बिरसा मुंडा चौक करने का किया ऐलान

महान स्वतंत्रता सेनानी और जननायक भगवान बिरसा मुंडा की 150वीं जयंती के अवसर पर केंद्र सरकार ने आज शुक्रवार को दिल्ली के सराय कालेखां आईएसबीटी चौक का नाम बदलकर बिरसा मुंडा चौक करने का ऐलान कर दिया. केंद्रीय शहरी विकास मंत्री मनोहर लाल खट्टर ने चौक का नाम बदलने का ऐलान किया.

भगवान बिरसा मुंडा की जयंती के अवसर पर देशभर में जनजातीय गौरव दिवस मनाया जा रहा है. केंद्र सरकार ने साल 2021 में मुंडा की जयंती को जनजातीय गौरव दिवस के रूप में मनाने का ऐलान किया था. इस अवसर पर देशभर में कई कार्यक्रमों का आयोजन भी किया जा रहा है.

दिल्ली में मुंडा की प्रतिमा का अनावरण

केंद्रीय मंत्री मनोहर लाल खट्टर ने चौक का नाम बदले जाने को लेकर कहा, “मैं आज घोषणा कर रहा हूं कि यहां आईएसबीटी बस स्टैंड के बाहर बड़े चौक को भगवान बिरसा मुंडा के नाम से जाना जाएगा. इस प्रतिमा और उस चौक का नाम देखकर न केवल दिल्ली के नागरिक बल्कि अंतरराष्ट्रीय बस स्टैंड पर आने वाले लोग भी उनके जीवन से प्रेरित होंगे.”

इससे पहले केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने आज राजधानी दिल्ली में सराय काले खां के पास बांसेरा पार्क में भगवान बिरसा मुंडा की 150वीं जयंती पर उनकी भव्य प्रतिमा का अनावरण किया. खुद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी जनजातीय गौरव दिवस मनाने के लिए बिहार के जमुई पहुंच रहे हैं. पीएम मोदी राजधानी पटना से करीब 200 किलोमीटर दूर जमुई जिले के एक सुदूर गांव में इस अवसर पर आयोजित एक कार्यक्रम में भाग लेंगे.

पीएम मोदी का एक हफ्ते से भी कम समय में बिहार का यह दूसरा दौरा है. इससे पहले पिछले बुधवार को उन्होंने दरभंगा में अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (AIIMS) की आधारशिला रखी थी. जमुई जिले की सीमा झारखंड राज्य से सटी हुई है, जहां विधानसभा चुनाव हो रहे हैं.

सिक्का और टिकट का अनावरण करेंगे PM मोदी

पीएम मोदी जमुई में आज बिरसा मुंडा के सम्मान में एक स्मारक सिक्का और डाक टिकट का अनावरण करेंगे. साथ ही जनजातीय समुदायों के उत्थान तथा क्षेत्र के ग्रामीण और दूरदराज के क्षेत्रों में बुनियादी ढांचे में सुधार के लिए 6,640 करोड़ रुपये से अधिक की कई विकास परियोजनाओं का उद्घाटन और शिलान्यास भी करेंगे.

केंद्रीय खाद्य प्रसंस्करण उद्योग मंत्री चिराग पासवान ने पीएम मोदी के दौरे पर अपना उत्साह दिखाया. पासवान 2 बार जमुई से लोकसभा सदस्य रह चुके हैं.

कौन थे बिरसा मुंडा

बिरसा मुंडा महान स्वतंत्रता सेनानी थे और आदिवासी समुदाय के लोग उन्हें प्रेमपूर्वक भगवान का दर्जा देते हैं. उनकी जयंती जनजातीय गौरव दिवस के रूप में मनाई जाती है.

बिरसा मुंडा का जन्म 1875 में बिहार के आदिवासी क्षेत्र उलिहातू में हुआ था. उन्होंने ब्रिटिश औपनिवेशिक शासन और धर्मांतरण जैसी अप्रिय गतिविधियों को लेकर आदिवासियों को आगाह करते हुए एकजुट किया था.

इंदौर में छात्रा ने की आत्महत्या, सुसाइड नोट में माता-पिता से मांगी माफी

मध्य प्रदेश के इंदौर जिले में बीएड की छात्रा ने फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली. मृतका इंदौर में किराए का कमरा लेकर पढ़ाई कर रही थी. अपनी मौत से पहले युवती ने एक सुसाइड नोट भी छोड़ा है, जिसमें उसने आत्महत्या की वजह के बारे में लिखा है. युवती ने बीमारी को आत्महत्या की वजह बताते हुए खुद को ही मौत का जिम्मेदार बताया है. घटना के बाद मौके पर पहुंची पुलिस ने युवती के शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है. वहीं, पूरे मामले की जांच पड़ताल शुरू कर दी है.

इंदौर के आजाद नगर थाना क्षेत्र की पवनपुरी कॉलोनी रहने वाली पूजा कनेश ने फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली. पूजा इंदौर में रहकर बीएड की पढ़ाई कर रही थी और चॉकलेट फैक्ट्री में पैकिंग का काम करती थी. युवती अलीराजपुर जिले की रहने वाली थी. युवती इंदौर में किराए के कमरे में अपने भाई के साथ रहती थी. भाई दीपावली की छुट्टियों पर गांव गया हुआ था. इसी बीच युवती ने अपनी तबियत खराब होने और इलाज के बाद भी ठीक नहीं होने पर सुसाइड कर लिया.

फांसी लगाकर छात्रा ने की आत्महत्या

युवती ने मरने से पहले एक सुसाइड नोट भी छोड़ा है, जिसमें उसने बीमारी से ठीक नहीं होने पर आत्महत्या करने की बात लिखी है. घटना की सूचना मिलते ही पुलिस आनन-फानन में मौके पर पहुंची. पुलिस ने देखा कि पूजा का शव फंदे से झूल रहा था. पुलिस ने मामले की जांच के लिए तुरंत FSL की टीम को मौके पर बुलाया. पुलिस ने युवती के शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है. वहीं, घटना के बाद से ही पीड़ित परिवार को रो-रोकर बुरा हाल है. पुलिस ने मामला दर्ज करके जांच पड़ताल शुरू कर दी है.

माता-पिता से मांगी माफी

युवती सुसाइड में माता-पिता से माफी मांगने की बात लिखी थी. युवती अपनी बीमारी से काफी परेशान थी. उसने कई जगहों से अपना इलाज कराया था, लेकिन वह ठीक नहीं हो रही थी. इसी बात से वह काफी हताश थी और फिर आखिर में उसने फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली.

जमीन पर सोया थप्पड़बाज नरेश मीणा, जेल में कैसे गुजरी रात?

राजस्थान के टोंक जिले के समरावता गांव में बुधवार को थप्पड़कांड के बाद हिंसा हुई. मुख्यारोपी नरेश मीणा को तो पुलिस ने गुरुवार के दिन ही गिरफ्तार कर लिया था. उसके बाद और भी गिरफ्तारियां हुईं. टोंक पुलिस की 28 टीमें अब तक 60 नामजद आरोपियों को गिरफ्तार कर चुकी है. शेष अन्य की तलाश जारी है. इसी के साथ पुलिस हवालात से नरेश मीणा की पहली तस्वीर भी सामने आ गई है, इस तस्वीर में नरेश मीणा जमीन पर सोया हुआ नजर आया.

इस तस्वीर में नरेश मीणा बिना कंबल और चारपाई के सोया दिखा. देवली-उनियारा सीट पर चुनाव अधिकारी को थप्पड़ मारने और टोंक में हिंसा के आरोपी नरेश मीणा पर पुलिस मे भारतीय न्याय संहिता (बीएनएस), 2023 की धारा- 189(2), 190, 115(2), 121(2), 132, 223(a), 351(2), 109(1) और लोक प्रतिनिधित्व अधिनियम की धारा 132, 131 के तहत केस दर्ज किया है. नरेश मीणा आजाद प्रत्याशी है. वह देवली-उनियारा सीट से चुनाव लड़ रहा था. वोटिंग के दौरान उसने समरावता गांव में पोलिंग बूथ के अंदर घुसने की कोशिश की. जब उसे रोका गया तो नरेश ने SDM अमित चौधरी को थप्पड़ जड़ दिया.

इसके बाद गांव में तवान का माहौल हो गया. रात 9 बजे पुलिस उसे गिरफ्तार करने पहुंची तो गांव में खूब हंगामा हुआ. पुलिस ने जब नरेश को हिरासत में लिया तो उसने साथी पुलिस से भिड़ गए. उन लोगों ने नरेश को पुलिस हिरासत से छुड़वा लिया. भीड़ इतनी उग्र हो रखी थी कि पुलिस को आंसूगैस के गोले और मिर्ची बम फेंकने पड़े. गांव वालों ने भी पुलिस की गाड़ियां जला दीं. यही नहीं, कई घरों को भी क्षतिग्रस्त किया गया.

क्या बोला नरेश मीणा?

इसके अगले दिन खुद ही नरेश सामने आया. उसने SDM और कलेक्टर पर गंभीर आरोप लगाए. कहा- SDM फर्जी तरीके से वोटिंग करवा रहा था. कलेक्टर 45 किलोमीटर दूर बैठी थीं. मैं उनसे मिलना चाह रहा था. अगर वो आ जातीं तो मैं SDM को थप्पड़ न मारता. पुलिस ने भी मेरा कोई साथ नहीं दिया. उल्टा मुझे धमकाया. बोला- फर्जी वोटिंग और पुलिस की कार्रवाई, दोनों की जांच होनी चाहिए. SP के खिलाफ भी कार्रवाई होनी चाहिए. बाकी के पुलिस कर्मियों के खिलाफ भी एक्शन होना चाहिए, जिन्होंने गांव में आग लगाई, तोड़फोड़ की और मारपीट की.

इलाके में अभी भी पुलिस तैनात

पुलिस ने फिर दोपहर बाद नरेश मीणा को गिरफ्तार कर लिया. इस सम्बन्ध में थाना नगरफोर्ट पर 4 प्रकरण पंजीबद्ध किये गए. नरेश मीणा के समर्थकों द्वारा की गई तोड़-फोड़ एवं आगजनी के सभी घटनास्थल का अतिरिक्त महानिदेशक पुलिस-कानून एवं व्यवस्था जयपुर, सम्भागीय आयुक्त एवं महानिरीक्षक पुलिस अजमेर रेंज द्वारा निरीक्षण किया गया. पुलिस ने बताया- आरोपी के विरुद्ध पहले भीअलग-अलग जिलों में 25 FIR दर्ज हैं.

उधर, आरोपी नरेश मीणा की गिरफ्तारी के पश्चात् उसके समर्थकों द्वारा 1-2 स्थानों पर जाम लगाया गया था, जिनको खुलवा दिया गया है. जिला पुलिस की 28 टीमें गठित की गई हैं. अब तक 60 उपद्रवियों को गिरफ्तार किया जा चुका है. एवं अन्य नामजद आरोपियों की तलाश जारी है. हिंसा के बाद गुरुवार शाम को ही समरावता गांव में दुकानें खुलीं. लेकिन अभी भी वहां पुलिस तैनात है.

मुजफ्फरपुर के मैठी टोल प्लाजा के पास डीआरआई ने लक्जरी कार से 4.2 किलो कोकीन जब्त की।

बिहार के मुजफ्फरपुर में मैठी टोल प्लाजा के नजदीक एक लग्जरी कार से 42 करोड़ की कोकीन जब्त गई है. दरभंगा फोर लेन पर मैथी टोल प्लाजा के पास राजस्व आसूचना निदेशालय (डीआरआई) की टीम ने करवाई की. बिहार में पहली बार भारी मात्रा में कोकीन जब्त की गई है. जानकारी के मुताबिक कोकीन की यह खेप पश्चिम बंगाल के सिलीगुड़ी से दिल्ली ले जाई जा रही थी.

डीआरआई को छानबीन में जानकारी मिली थी कि कोकीन की एक खेप को थाईलैंड से तस्करी करके भूटान के रास्ते सिलीगुड़ी लाया गया था, जिसके बाद डीआरआई ने घेराबंदी कर के एक किराए की कैब से किलो कोकीन जब्त की. जानकारी के मुताबिक तस्करों ने लक्जरी कार में ट्रॉली बैग के ऊपरी व निचले हिस्से में पतले परत में 4.2 किलो कोकीन को छिपाकर रखा था. तस्कर को मुजफ्फरपुर होकर गोरखपुर के रास्ते दिल्ली यह कोकीन की खेप पहुंचाना था.

पहली बार इतनी मात्रा में कोकीन हुई है जप्त

डीआरआई की टीम ने कोकीन के तस्कर महाराष्ट्र के 55 वर्षीय सेवानिवृत्त जवान शाहीन शेख को गिरफ्तार किया है. बिहार में पहली बार एक साथ 42 करोड़ की कोकीन जप्ती हुई है.मुजफ्फरपुर डीआरआई के अधिकारियों को गुप्त सूचना मिली थी कि मादक पदार्थ की बड़ी खेप थाईलैंड से तस्करी करके भूटान सिलीगुड़ी के रास्ते मुजफ्फरपुर से गोरखपुर होकर दिल्ली ले जाई जा रही है. ऐसे में उन्होंने इसे पकड़ने के लिए एक विशेष टीम गठित की.डीआरआई ने गायघाट के मैठी टोल प्लाजा के समीप घेराबंदी की. इस बीच दरभंगा की ओर से लक्जरी कार आती हुई दिखाई दी.

थाईलैंड से जुड़े हैं तार

अधिकारी ने बताया कि उस कार में शख्स से जब उन्होंने पूछा तो वो बोला कि दिल्ली जा रहे हैं और उसके पास एक कपड़ों का ट्रॉली है. ऐसे में जब ट्रॉली बैग की बारीकी से तलाशी ली गयी तो बैग के ऊपरी व निचले हिस्से में पतली परत में कोकीन छिपी मिली. डीआरआई को शेख शाहीन के पास नेवी से सेवानिवृत्त होने का पहचान पत्र मिला है, जिसकी तहकीकात डीआरआई की टीम कर रही है. पुछताछ में तस्करों के अंतरास्ट्रीय सिंडिकेट से जार जुड़ने की बात सामने आई है. डीआरआई सूत्रों की मानें तो लखनऊ डीआरआई जोनल कार्यालय के अंतर्गत आने वाले बिहार, झारखंड, यूपी की अब तक की सबसे बड़ी कार्रवाई बताई जा रही है.

वॉट्सऐप: क्या वाकई प्राइवेसी का किंग है या नहीं?, जानें

WhatsApp ने दुनिया भर में मैसेजिंग ऐप्स के मामले में एक बड़ा मुकाम हासिल किया है. दुनिया भर में करीब 2.9 अरब लोग इसके जरिए बातचीत करते हैं. इसका आसानी से इस्तेमाल होने वाला इंटरफेस, ग्रुप चैट, और मीडिया शेयर करने की सुविधा ने इसे लोगों के बीच बेहद पॉपुलर बना दिया है. वॉट्सऐप लगातार नए प्राइवेसी फीचर्स जोड़ता रहता है. एंड-टू-एंड एन्क्रिप्शन जैसी सर्विस वॉट्सऐप यूजर्स के मैसेज को सिक्योर करने के काम आती है. वॉट्सऐप की कई खूबियां इसे एक शानदार प्राइवेट मैसेंजर ऐप बनाती हैं.

लेकिन, क्या वॉट्सऐप वाकई प्राइवेसी का किंग है? यह सवाल इसलिए उठता है क्योंकि वॉट्सऐप, मेटा का हिस्सा. मेटा दुनिया की तीन मशहूर टेक प्लेटफॉर्म फेसबुक, इंस्टाग्राम और वॉट्सऐप की पैरेंट कंपनी है. मेटा अपनी डेटा कलेक्शन पॉलिसी के लिए जानी जाती है.

वॉट्सऐप यूजर्स की चिंता

कई लोगों को चिंता सताती है कि वॉट्सऐप उनके डेटा का इस्तेमाल मेटा के दूसरे प्रोडक्ट्स के लिए कर सकती है, भले ही उनके मैसेज एन्क्रिप्टेड हों. इसके अलावा, वॉट्सऐप की प्राइवेसी पॉलिसी में समय-समय पर बदलाव होते रहते हैं, जिससे यूजर्स में बेएतबारी पैदा होती है.

आइए, इस सवाल का जवाब ढूंढने के लिए WhatsApp, Signal, Telegram और Threema जैसे लोकप्रिय मैसेजिंग ऐप्स की तुलना करते हैं और जानते हैं कि कौन सा ऐप प्राइवेसी के मामले में सबसे आगे है, या फिर वॉट्सऐप ही प्राइवेसी का असली किंग है.

1. प्राइवेसी डिजाइन (Privacy Design)

WhatsApp: इसका इस्तेमाल करने के लिए फोन नंबर जरूरी है.

Signal: इसका इस्तेमाल करने के लिए फोन नंबर की जरूरत होती है, लेकिन यह मजबूत प्राइवेसी फीचर्स देता है.

Telegram: यह ऐप यूजर्स को यूजरनेम के जरिए रजिस्टर करने की इजाजत देता है, लेकिन डिफॉल्ट तौर पर फोन नंबर का इस्तेमाल होता है.

Threema: इस ऐप को इस्तेमाल करने के लिए फोन नंबर या ईमेल की जरूरत नहीं होती है, जो इसे एक हाई-लेवल प्राइवेट ऐप बनाता है.

2. एंड-टू-एंड एन्क्रिप्शन (End-to-End Encryption)

WhatsApp: सभी मैसेज के लिए डिफॉल्ट तौर पर एंड-टू-एंड एन्क्रिप्शन मौजूद है.

Signal: यह ऐप हर तरह की बातचीत के लिए एंड-टू-एंड एन्क्रिप्शन देता है, जो डिफॉल्ट तौर पर एक्टिव होता है.

Telegram: इसमें ‘सीक्रेट चैट्स’ के लिए एंड-टू-एंड एन्क्रिप्शन मौजूद है, लेकिन नॉर्मल चैट और ग्रुप चैट में यह एन्क्रिप्शन डिफॉल्ट नहीं होता है.

Threema: सभी मैसेज, फाइल और कॉल के लिए एंड-टू-एंड एन्क्रिप्शन मिलता है.

3. ओपन सोर्स (Open Source)

WhatsApp: यह ओपन सोर्स नहीं है (Meta का मालिकाना हक है).

Signal: यह पूरी तरह से ओपन सोर्स है, यानी इसका कोड पब्लिकली अवेलेबल है.

Telegram: इसमें क्लाइंट ओपन सोर्स है, लेकिन सर्वर साइड कोड बंद है, जो कुछ प्राइवेसी और ट्रांसपेरेंसी को लेकर चिंताएं पैदा कर सकता है.

Threema: यह भी ओपन सोर्स है.

अगर आप प्राइवेसी और सिक्योरिटी को लेकर काफी सजग हैं, तो सिग्नल और थ्रीमा टॉप चॉइस हो सकते हैं. वॉट्सऐप को चलाना काफी आसान है, लेकिन यह मेटा के एटवर्टाइजिंग और डेटा-शेयरिंग प्रैक्टिस से जुड़ा है. टेलीग्राम आम बातचीत के लिए ठीक है, लेकिन थोड़ा कम सेफ है, खासकर ग्रुप चैट और नॉन-सीक्रेट चैट के लिए.

वॉट्सऐप, सिग्नल और टेलीग्राम को आप फ्री में चला सकते हैं, लेकिन थ्रीमा एक पेड मैसेजिंग सर्विस प्लेटफॉर्म है. थ्रीमा का इस्तेमाल करने के लिए आपको कम से कम 2 डॉलर (लगभग 168 रुपये) महीना खर्च करने होंगे.

महंगे प्याज का आतंक: अगले कुछ महीनों तक आम आदमी की थाली से गायब रह सकता है प्याज, इस रिपोर्ट में हुआ बड़ा खुलासा

आम आदमी की थाली से अगले कुछ महीनों तक प्याज गायब रह सकता है. इसकी कीमतें पहले से ही काफी ऊंची बनी हुई हैं और अब इनके जल्द नीचे आने की उम्मीद भी नहीं है. इसे लेकर एक रिपोर्ट में चौंकाने वाला खुलासा हुआ है. देश में प्याज ही नहीं टमाटर, बंद गोभी, लौकी जैसी और सब्जियों के दाम भी लगातार बढ़ ही रहे हैं.

आईसीआईसीआई बैंक की एक रिपोर्ट के मुताबिक देश की सबसे बड़ी प्याज मंडी लासलगांव में प्याज की कीमत 5 साल के हाई लेवल तक जा चुकी हैं. इसकी कीमत प्रति क्विंटल 5500 रुपए से ऊपर तक लग चुकी है. ये थोक मार्केट के रेट हैं, इसलिए रिटेल मार्केट में प्याज के जल्दे सस्ते होने की उम्मीद ना के बराबर है.

टूटा दिसंबर 2019 का रिकॉर्ड

प्याज की कीमत इस महीने की 6 तारीख को लासलगांव में 5,656 रुपए प्रति क्विंटल तक जा चुकी है. इस तरह प्याज के दामों ने 2019 के रिकॉर्ड को भी तोड़ दिया है, क्योंकि प्याज की कीमतें 10 दिसंबर 2019 को ही इस लेवल तक पहुंची थीं. अब भी थोक बाजार में प्याज के दाम 4,000 रुपए प्रति क्विंटल के आसपास बने हुए हैं.

और क्या है ICICI Bank की रिपोर्ट में?

आईसीआईसीआई बैंक की रिपोर्ट में कहा गया है कि बीते महीनों की तुलना में नवंबर में भले सब्जियों के दाम कम हुए हैं, लेकिन प्याज की कीमतें ऊंची ही बनी हुई हैं. अगस्त और सितंबर की भारी बारिश ने सब्जियों की आवक में 28 प्रतिशत की गिरावट लाई इससे टमाटर की कीमतें पिछले महीने 49 प्रतिशत तक बढ़ गई थीं; वहीं प्याज की कीमतें अब भी ऊंची ही हैं.

इस साल अक्तूबर में सब्जियों की कीमतों में सालाना आधार पर 42 प्रतिशत की बढ़ोतरी देखी गई है. सब्जियों की कीमतों में ये 57 महीनों का उच्च स्तर है.

राजस्थान में एसडीएम थप्पड़ कांड पर आईएएस टीना डाबी का बयान,कहा "हम आपके साथ हैं"

राजस्थान में एक थप्पड़ की गूंज काफी दूर तक सुनाई दे रही है. बाड़मेर जिले में भी RAS एसोसिएशन के अफसरों ने बुधवार को अपने कार्यालय में पेन डाउन हड़ताल का ऐलान किया. इस दौरान उन्होंने जिले की कलेक्टर टीना डाबी को एक ज्ञापन भी सौंपा. इस दौरान कलेक्टर टीना डाबी ने कहा कि राज्य का IAS एसोसिएशन भी आपके साथ है. हम सब आपके साथ हैं. इसको लेकर चिंता करने की कोई बात नहीं है.

बीते दिन राजस्थान की देवली उनियारा विधानसभा सीट पर उपचुनाव हुआ था. इस दौरान कांग्रेस से बागी होकर चुनाव लड़ रहे निर्दलीय प्रत्याशी नरेश मीणा ने एसडीएम अमित चौधरी को थप्पड़ जड़ दिया था. इस थप्पड़ कांड के बाद नरेश मीणा फरार हो गया था. पुलिस उसकी तलाश में जुटी थी. इसी बीच बुधवार रात में पुलिस नरेश मीणा को गिरफ्तार करने देवली उनियारा कस्बे में पहुंची. यहां नरेश मीणा के समर्थक उग्र हो गए और पथराव, आगजनी और तोड़फोड़ करने लगे.

पेन डाउन हड़ताल पर गया RAS एसोसिएशन

यही नहीं नरेश मीणा भी पुलिस हिरासत से चकमा देकर फरार हो गया. एसडीएम को मारे गए थप्पड़ की गूंज राजधानी जयपुर तक सुनाई दी. RAS एसोसिएशन ने पेन डाउन हड़ताल का ऐलान कर दिया. RAS अधिकारियों के समर्थन में मंत्रालयिक कर्मचारी, संघ ग्राम विकास अधिकारी, तहसीलदार संघ, कानूनगो, कर्मचारी संघ के साथ सरपंच संघ ने भी हड़ताल का समर्थन करने की घोषणा कर दी

बाड़मेर कलेक्टर टीना डाबी को सौंपा ज्ञापन

इस दौरान सभी संगठनों ने RAS अधिकारियों के साथ मिलकर जिला कलेक्टर को मुख्यमंत्री के नाम ज्ञापन सौंपा और आरोपी नरेश मीणा के विरुद्ध सख्त से सख्त कार्रवाई करने की मांग की. बाड़मेर में भी ADM राजेंद्र सिंह के नेतृत्व में अधिकारियों और कर्मचारियों ने जिला कलेक्टर टीना डाबी को ज्ञापन सौंपा और IAS एसोसिएशन से समर्थन की मांग की. इस पर कलेक्टर टीना डाबी ने कहा कि हम सब आपके साथ हैं. IAS एसोसिएशन ने भी इसका समर्थन किया है.

एनसीपी के नेता और उपमुख्यमंत्री अजित पवार ने 'बंटेंगे तो कटेंगे' के नारे से बना ली दूरी, जानें

महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव में अब केवल छह दिन बाकी हैं. इससे पहले फिर महायुति की सहयोगी पार्टी एनसीपी के नेता और उपमुख्यमंत्री अजित पवार ने ‘बंटेंगे तो कटेंगे’ के नारे से दूरी बना ली है. बीड में आयोजित जनसभा को संबोधित करते हुए अजित पवार ने कहा कि “बंटेंगे तो काटेंगे” का हम समर्थन नहीं करते हैं. महाराष्ट्र साधु-संतों का प्रदेश है. यह शाहू, फूले और अंबेडकर का महाराष्ट्र है. लोकसभा चुनाव के समय में विपक्ष ने कहा था कि मोदी सरकार संविधान बदलने वाले हैं. ऐसा कुछ नहीं हुआ. अब भी ऐसा कुछ नहीं होने वाला है.

बता दें कि उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने महाराष्ट्र में चुनाव प्रचार के दौरान ‘बंटेंगे तो कटेंगे’ का नारा दिया था. वहीं, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा था कि ‘हम एक रहेंगे तो सेफ रहेंगे’. वहीं, महायुति के घटक दल अजित पवार ने इस नारे से फिर अपनी दूरी बना ली है.

बीड विधानसभा क्षेत्र में पार्टी उम्मीदवार योगेश क्षीरसागर के समर्थन में आयोजित सभा में उपमुख्यमंत्री ने कहा कि महाराष्ट्र शिव अनुयायियों की भूमि है. हमारे खून में उनकी शिक्षाएं हैं, हम उनके दिखाए रास्ते पर चलते हुए आगे बढ़ेंगे.

लोकसभा चुनाव के दौरान मुस्लिम आबादी के इंडिया ब्लॉक के पक्ष में होने पर एनसीपी प्रमुख ने कहा, “लोकसभा चुनाव के दौरान अल्पसंख्यकों ने इंडिया ब्लॉक का समर्थन किया था. उसी गठबंधन में एक घटक के रूप में शिव सेना (यूबीटी) है.” उन्होंने सवाल किया कि इंडिया गठबंधन का पक्ष लेने से क्या हासिल हुआ? मतदाताओं को सोचना चाहिए कि जरूरत के समय उनकी मदद कौन कर रहा है.

लोकसभा चुनाव में हुआ था झूठा प्रचार

उन्होंने कहा कि लोकसभा चुनाव के दौरान झूठे प्रचार से पिछड़े समुदाय को भी गुमराह किया गया. उन्होंने कहा कि ऐसा कहा गया था कि अगर नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाले गठबंधन को चुनाव में 400 से अधिक सीटें मिलीं तो संविधान में संशोधन किया जाएगा. मैं पूछना चाहता हूं कि क्या संविधान में संशोधन किया गया है? यह हमारी सरकार है जिसने न्याय मूर्ति की आंखों से पट्टी हटा दी है. न्याय दिया और उन्हें एक हाथ में तलवार दी और दूसरे हाथ में संविधान दिया. यह संविधान के प्रति हमारा सम्मान है.

उन्होंने कहा कि संविधान ने देश को कश्मीर से कन्याकुमारी तक एकजुट रखा है. एनसीपी प्रमुख ने कहा कि यह इस संविधान के कारण है कि हमारे देश में पड़ोसी देशों पाकिस्तान, बांग्लादेश और श्रीलंका जैसे विद्रोह नहीं होते हैं. उन्होंने कहा कि हमारे पास एक समृद्ध परंपरा, संस्कृति और इतिहास है. यह सब मत भूलिए. हम महायुति के गठबंधन सहयोगी हैं और समान मूल्यों को साझा करते हैं. मैं लोगों से राकांपा उम्मीदवार को वोट देने की अपील करता हूं. मैं आपको विश्वास दिलाता हूं कि आपका बाल भी बांका नहीं होगा.

उन्होंने कहा कि हम शिवाजी महाराज के मूल्यों में विश्वास करते हैं, जो सभी धर्मों के लोगों को अपने साथ लेकर आए. सभी धर्मों के लोगों की सुरक्षा सुनिश्चित करना हमारी और पुलिस की जिम्मेदारी है. उन्होंने कहा कि हाल ही में संपन्न पुलिस भर्ती अभियान के दौरान, 52% रिक्तियां ओबीसी, एससी और एसटी के लिए, 10% आर्थिक रूप से कमजोर वर्गों (ईडब्ल्यूएस) के लिए और 10% मराठाओं के लिए आरक्षित थीं. अब, सिर्फ इसलिए कि मराठों को स्वतंत्र आरक्षण दिया गया है, वे ईडब्ल्यूएस से बाहर आ गए हैं, और अन्य जिनके पास कहीं और कोटा नहीं है, उन्हें ईडब्ल्यूएस के तहत लाभ मिल रहा है.

जम्मू-कश्मीर में 119 आतंकियों की तलाश तेज, सुरक्षाबलों ने शुरू किया महाअभियान

जम्मू-कश्मीर में जब से नई सरकार बनी है, तब से वहां आतंकवादी घटनाओं में बढ़ोतरी देखी गई है. राज्य में अचानक बढ़े हमलों के बाद से सुरक्षा एजेंसियां सतर्क हो गई हैं. खुफिया रिपोर्ट के अनुसार, राज्य में 119 से ज्यादा आतंकी सक्रिय हैं

इनमें से ज्यादातर आतंकी पाकिस्तानी हैं. सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक, प्रदेश में अब आतंकवादियों को स्थानीय स्तर पर समर्थन नहीं मिल रहा है, जिसके कारण सुरक्षा एजेंसियों को उन्हें ट्रेस करने में आसानी हो रही है और उनके खिलाफ सटीक ऑपरेशन चलाया जा रहा है.

जानकारी के मुताबिक सक्रिय आतंकवादियों में से 79 कश्मीर घाटी में हैं, जिनमें 18 स्थानीय और 61 पाकिस्तानी हैं. वहीं जम्मू संभाग में 40 सक्रिय आतंकी हैं, जिनमें 34 पाकिस्तानी नागरिक हैं जबकि केवल 6 स्थानीय आतंकी हैं. अब तक सुरक्षाबलों ने 61 आतंकियों को मार गिराया है, जिनमें से 16 आतंकवादी सीमा पर और 45 आतंकवादी हिंटरलैंड में मारे गए हैं. आतंकवादियों ने 25 बार घुसपैठ करने की कोशिश की है, जिसे सुरक्षा बलों ने नाकाम किया है.

इस साल 61 आतंकी मारे गए

इस साल जम्मू-कश्मीर में 25 आतंकी घटनाएं हुई हैं. इन घटनाओं में 61 आतंकी मारे गए हैं, जिनमें 21 पाकिस्तानी आतंकवादी थे. इन घटनाओं में 24 जवान शहीद हुए हैं, जबकि पिछले साल 27 जवान शहीद हुए थे. आतंकवाद की ज्यादातर घटनाएं अंदरूनी इलाकों में हुई हैं.

घुसपैठ की कोशिश में आतंकी

जम्मू-कश्मीर में मौसम के बदलाव से पहले आतंकी घुसपैठ करने की फिराक में हैं. आने वाले वक्त में बर्फबारी होने वाली है, इससे पहले आतंकी राज्य में घुसपैठ करना चाहते हैं. घुसपैठ के लिए आतंकियों के कई लॉन्चपैड्स भी एक्टिव किए गए हैं. इसको देखते हुए सेना और बीएसएफ बेहद सतर्क हैं.

सुरक्षा बलों की तैयारियों की जानकारी देते हुए जम्मू बीएसएफ के आईजी डीके बूरा का कहना है कि आतंकियों से हर मोर्चे पर निपटने के लिए हम तैयार हैं. आतंकियों को किसी भी साजिश को कामयाब नहीं होने दिया जाएगा. उनसे निपटने के लिए हमारे सुरक्षाबल हर मोर्चे पर तैयार हैं. पड़ोसी देश हमेशा से प्रयास करता है कि घुसपैठ की जाए, लेकिन हमारी बीएसएफ ऐसा नहीं होने देगी.

कोरोना महामारी में भारत ने दिया था साथ, अब डोमिनिका प्रधानमंत्री मोदी को देगा सर्वोच्च सम्मान

कोविड 19 महामारी के दौरान मदद के लिए डोमिनिका राष्ट्रमंडल ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को अपना सर्वोच्च राष्ट्रीय पुरस्कार डोमिनिका अवार्ड ऑफ ऑनर देने की घोषणा की है.

प्रधानमंत्री मोदी को 19-21 नवंबर को यह अवॉर्ड जॉर्जटाउन, गुयाना में भारत-कैरिकॉम शिखर सम्मेलन के दौरान दिया जाएगा. डोमिनिका राष्ट्रमंडल के राष्ट्रपति सिल्वेनी बर्टन उन्हें सम्मानित करेंगे.

यह सम्मान COVID-19 महामारी के दौरान डोमिनिका में दिए गए उनके योगदान और भारत सरकार की मजबूत साझेदारी दर्शाता है.यह पुरस्कार प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व में स्वास्थ्य, शिक्षा और सूचना प्रौद्योगिकी में डोमिनिका के लिए भारत के समर्थन के लिए दिया जा रहा है.

पीएम मोदी हमारे सच्चे शुभचिंतक- डोमिनिका

डोमिनिका सरकार का कहना है पीएम मोदी हमारे सच्चे शुभचिंतक रहे हैं. COVID-19 के दौरान फरवरी 2021 में प्रधानमंत्री मोदी ने डोमिनिका को एस्ट्राजेनेका COVID-19 वैक्सीन की 70,000 खुराक की आपूर्ति की थी. गंभीर स्वास्थ्य संकट के बीच हमारी जरूरत के समय में उन्होंने साथ दिया. हमारी सरकार कृतज्ञता अर्पित करती है.

स्वास्थ्य, शिक्षा, जयवायु परिवर्तन पर सहयोग

डोमिनिका राष्ट्रमंडल का कहना है कि स्वास्थ्य, शिक्षा के साथ-साथ भारत की मोदी सरकार ने वैश्विक स्तर पर जलवायु परिवर्तन को लेकर भी गंभीर चिंता व्यक्त की है और समाधानजनक पहल की है.

गौरतलब है कि प्रधानमंत्री मोदी ने जलवायु परिवर्तन और युद्ध जैसी वैश्विक चुनौतियों से निपटने में आपसी सहयोग के महत्व पर जोर दिया है. पीएम मोदी ने इन मुद्दों के समाधान में डोमिनिका और कैरेबियन के साथ काम करने के लिए भारत की प्रतिबद्धता को दुहराया है.