जिउतिया व्रत आज, संतान की लंबी आयु, सुख, समृद्धि, स्वास्थ्य के लिए महिलाएं करती है यह व्रत
डेस्क : संतान की लंबी आयु, सुख, समृद्धि, स्वास्थ्य आदि की कामना के लिए किया जाने वाला जीवित्पुत्रिका (जिउतिया) व्रत का बीते मंगलवार को नहाय-खाय के साथ शुरु हुआ। वहीं आज यानि बुधवार को महिलाएं निर्जला-निराहार व्रत रखेंगी।
बनारस पंचांग को मानने वाली महिलाओं ने बीते 24 सितंबर मंगलवार को नहाय-खाय के साथ इस व्रत की शुरुआत की। वहीं आज 25 सितंबर को निर्जला निराहार उपवास करेंगी। जबकि मिथिला पंचांग के यह व्रत एक दिन पहले बीते सोमवार को नहाय खा के साथ शुरु हो गया और बीते मंगलवार को निर्जला निराहार उपवास के साथ आज समापन हो गया।
मिथिला पांचाग के जानकार बताते हैं कि मिथिला पंचांग में आश्विन कृष्ण पक्ष अष्टमी को ही जिउतिया व्रत रखा जाता है। इस वर्ष 24 सितंबर शाम 6.06 बजे तक ही सप्तमी तिथि है। इसके बाद अष्टमी तिथि शुरू होगी। इसलिए व्रती 24 सितंबर को ही उपवास की। मिथिला पंचांग मानने वाली व्रती महिलाएं 24 सितंबर की सुबह में ओठगन की।
वहीं बनारस पांचाग को मानने वाले लोग उदयातिथि के अनुसार आज बुधवार 25 सितंबर जीवित्पुत्रिका व्रत रख रही है। जबकि व्रती महिलाएं 26 सितंबर को पारण करेंगी। सजीव पुत्रिका व्रत में माताएं अपनी संतान की सलामती और स्वास्थ्य लाभ के लिए पूरे दिन और पूरी रात निर्जला व्रत रखती हैं।
बताते चले कि जीवित्पुत्रिका व्रत में महिलाएं खाजा, मिठाई, फल और डलिया भरती हैं। जीतिया व्रत में वे चील, सियारिन की कथा सुनती हैं।
Sep 25 2024, 09:32