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*जिला अस्पताल में लगवाई गई मरीजों व तीमारदारों को बैठने की बेंच*

अमेठी ।जिला अस्पताल में फर्श पर बैठते थे मरीज और तीमारदारी सीएमएस ने संज्ञान लेते हुए अस्पताल में मरीजों और तीमारदारों को बैठने के लिए बेंच लगवा दी गई है।बेंच लगने से अब मरीजों और उनके तीमारदारों को फर्श पर नही बैठना पड़ेगा।

दअरसल अमेठी के जिला अस्पताल अभी तक बेंच नही थी जिससे मरीजों और उनके तीमारदारों को फर्श पर बैठनाथ पड़ता था।आये दिन जिला अस्पताल की तस्वीरें सोशल मीडिया पर वायरल होती थी।मरीजों और तीमारदारों की समस्या का संज्ञान लेते हुए जिला अस्पताल के सीएमएस ने स्टील की बेंच लगवा दी है।अब जिला अस्पताल में इलाज कराने आये मरीजों को फर्श पर नही बैठना पड़ेगा।

सीएमएस ने कहा

पूरे मामले पर सीएमएस बद्री प्रसाद अग्रवाल ने कहा कि जिला अस्पताल में इलाज कराने आये मरीजों को बैठने के लिए सिर्फ डॉक्टरों के चेम्बर के बाहर बैठने की व्यवस्था थी लेकिन मरीज अधिक होने के कारण मरीज और उनके तीमारदार फर्श पर ही बैठ जाते थे।अभी चार बेंच लगाए गए है और 12 और बेंचो का आर्डर दिया गया जो जल्द ही लग जायेगी।जिससे मरीजों को अब फर्श पर नही बैठना पड़ेगा।सभी मरीज और तीमारदार अब कुर्सियों पर बैठेंगे।

*जल का संचय कर पानी के गिरते स्तर को बचाया जा सकता हैं: राजेश वर्मा*

शाहगढ़/अमेठी। जल ही जीवन हैं, केन्द्र सरकार प्रदेश सरकार की अतिमहत्वाकांक्षी योजना हर घर नल जल पर तेजी से कार्य हो रहा हैं ।

आम ग्रामीणों से लेकर जनप्रतिनिधियों तक को जागरूक भी किया जा रहा हैं।विकास खंड में चल रहे जल जीवन मिशन का वार्ड सदस्यों का दो दिवसीय प्रशिक्षण आज सम्पन्न हो गया। मास्टर ट्रेनर राजेश कुमार वर्मा ने प्रशिक्षणार्थियों को बताया कि प्रकृति की गोद से इंसान, जीव और पेड़ पौधों के लिए जीने के तरह तरह के संसाधन मिले हैं।

जिसकी महत्वत्ता समझते हुए उसका सदुपयोग करने की जरूरत हैं। उसी की एक कड़ी जल भी हैं, जो मनुष्य से लेकर, पशु और पेड़ पौधे सबके लिए अमूल्य धरोहर हैं। हम सभी को इसकी बर्बादी नहीं करना चाहिए।बरसात के पानी का संचय पानी को बर्बादी को रोका जा सकता हैं। और उससे गिरते हुए जलस्तर को रोका जा सकता हैं। मानव जीवन से लेकर पर्यावरण के लिए पानी का अहम योगदान हैं।

प्रशिक्षण प्राप्त कर चुके सभी प्रशिक्षणार्थी को प्रशिक्षण पत्र, बैग व भत्ता प्रदान किया। इस अवसर पर ट्रेनर रमेश कुमार, धीरेंद्र सिंह, अमरेन्द्र सिंह, अपार सिंह, अनुभव यादव, राम मूरत, शिव दर्शन यादव, हनुमान यादव, राजेन्द्र यादव, सर्वेश शर्मा, सूरज दुबे, सूर्य प्रकाश तिवारी, योगेंद्र नाथ पांडेय आदि मौजूद रहे।

*देर रात अज्ञात बदमाशों द्वारा चारपाई पर लेटे हुए युवक का धारदार हथियार से गलाकाट कर किया लहुलुहान*

अमेठी।पूरा मामला अमेठी जनपद के तहसील तिलोई के मोहनगंज कोतवाली क्षेत्र के पूरे निहाल सिंह मजरे विराज का है।

जहां थानाक्षेत्र के पूरे निहाल सिंह मजरे विराज निवासी विशंभर पुत्र रामसेवक जो बीती रात में अपने दरवाजे पर चारपाई डालकर लेटे हुए थे। कि बाइक सवार अज्ञात बदमाश आए और चारपाई पर लेते हुए युवक के गले पर धारदार हथियार से हमला कर दिया जिससे युवक गंभीर रूप से घायल हो गया।

वहीं घायल युवक की बहु आरती ने बताया कि हम लोग छत के ऊपर सो रही थी की अचानक देर रात ससुर की चिल्लाने की आवाज सुनकर हम और हमारे पति आशीष कुमार छत के नीचे आ कर देखा तो मेरे ससुर खून से लतपत चारपाई पर पड़े हुए थे। और देखा कि सड़क के किनारे खड़ी एक बाइक पर तीन लोग बैठे हुए थे जैसे ही मेरे पति आशीष कुमार उन बदमाशों की तरफ दौड़े तो उन लोगों ने गाड़ी स्टार्ट किया। और वहां से फरार हो गए। वहीं सूचना पर पहुंची मोहनगंज पुलिस ने घायल युवक को डॉयल 108 एंबुलेंस के माध्यम से इलाज हेतु सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र तिलोई पहुंचाया जहां मौजूद डॉक्टरों ने हालत नाजुक देख घायल को जिला अस्पताल रायबरेली रेफर कर दिया। और वहां से ट्रामा सेंटर लखनऊ किया गया रेफर जहां घायल युवक का चल रहा इलाज।

वही इस संबंध में मोहनगंज कोतवाली प्रभारी निरीक्षक धीरेंद्र कुमार यादव ने बताया कि उक्त प्रकरण में घायल युवक की बहू की तहरीर पर अज्ञात लोग के खिलाफ धारा 307 में केस दर्ज कर जांच शुरू कर दी गई है। जल्द ही मामले का खुलासा किया जाएगा।

*छप्पर आग लगने से बुरी तरह झुलसी चार भैंस,प्रशासन द्वारा पीड़ित परिवार को मदद की दरकार*

अमेठी।विगत दिवस छप्पर की पशुशाला में आग लगने से तीन भैंस और एक उसका डेढ़ माह का बच्चा आग की चपेट में आने से बुरी तरह झुलस गया। प्रशासन के संज्ञान में मामला आने के बावजूद भी पीड़ित परिवार को कोई मदद नहीं मिल पाई, जिससे परिवार जानवर का इलाज कराने में असहज महसूस कर रहा हैं।

गौरतलब हो कि अशोक कुमार यादव पुत्र राम सेवक वासी गंगा अहीर का पुरवा मजरे जंगल राम नगर कोतवाली अमेठी वृस्पतिवार को शाम लगभग सात बजे अपने जानवर को पशुशाला में बांध कर बारामासी बाजार गए थे, तथा जानवर को मच्छरों के प्रकोप से बचने के लिए कूड़ा आदि का धुंआ सुलगाया हुआ था, और बाकी सदस्य खाने आदि बनाने में घर के अंदर थे, धुआं की आग से पशुशाला का छप्पर अचानक जलने लगा, जब तक परिजनों को जानकारी होती तब तक आग गम्भीर रूप धारण कर चुका था, ग्रामीणों की मदद से आग पर काबू पाया गया।

लेकिन तब तक पशुशाला में पशुशाला में बंधे तीन भैंस व डेढ़ माह का भैंस का बच्चा बुरी तरह से झुलस गया। इसके अलावा छप्पर में रखा हुआ भूसा, अनाज व खाद भी जलकर राख हो गया। सूचना पर राजस्व विभाग और पशु पालन विभाग को हुई, लेकिन पीड़ित परिवार को किसी तरह की सरकारी मदद नहीं मिल सकी। और पशु पालन विभाग द्वारा झुलसे भैंस का किसी तरह से इलाज भी नहीं किया जा रहा हैं। जिससे पीड़ित परिवार दूसरे लोगों से ब्याज पर कर्ज लेकर जानवरों का इलाज करा रहा हैं।

*चंदौकी कलस्टर का हुआ गठन*

शाहगढ़/अमेठी।केन्द्र और प्रदेश सरकार लगातार ग्रामीण क्षेत्रों में महिलाओं को सशक्त और आत्मनिर्भर बनाने का नित कार्य कर रही हैं।जो ग्रामीण क्षेत्र की महिलाओं को समूह से जोड़कर उन्हें तरह तरह से कार्य देकर मजबूती और आर्थिक रूप से सम्पन्न करने का कार्य कर रही हैं। ज्ञात हो केन्द्र सरकार द्वारा संचालित राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन के तहत विकास खंड के 39 ग्राम सभाओं में महिलाओं के 520 समूह संचालित हैं।

जिसे चार कलस्टर में बाटा गया हैं। इनमें शाहगढ़, कौहार, सेवई हेमगढ़ के बाद चंदौकी कलस्टर सृजित हैं। विकास खंड के बाकी कलस्टर का गठन पूर्व में हो चुका हैं।अवशेष चंदौकी क्लस्टर में नई किरण महिला प्रेरणा संकुल संघ का गठन हुआ। इस मिशन से जुड़कर अभी तक शाहगढ़ विकास खंड में कई महिलाओं के जीवन में बदलाव देखने को मिल रहा है, समूह की महिलाओं को बचत के साथ साथ रोजगार के अवसर भी मिल रहे हैं। इस अवसर पर एडीओ मनी राम सरोज, ग्राम विकास अधिकारी राम मिलन, ब्लाक मिशन प्रबन्धक सुशील कुमार, मैनेजर अमित कुमार, सोनू कुमार आदि मौजूद रहे।

*खेत के पास अचेत अवस्था में मिले गार्ड की हुई मौत*

शाहगढ़/अमेठी। खेत के पास गार्ड अचेत अवस्था में मिला, जिसे इलाज के लिए अस्पताल ले जाया गया, जहां डॉक्टर ने मृत्यु घोषित कर दिया। गौरतलब हो कि अनिल कुमार शर्मा पुत्र विजय बहादुर शर्मा उम्र 45 वर्ष वासी गंगागंज, पनकी, कानपुर आर्डिनेंस फैक्ट्री कोरवा में बतौर सिक्योरिटी गार्ड तैनात हैं।

सोमवार दोपहर बाद बाइक से मुंशीगंज कोतवाली के अमेठी मुसाफिरखाना रोड पर गुलाल ड्रेन पुल के करीब खेत में अचेत अवस्था में दिखाई दिया। जिसकी सूचना ग्रामीणों ने पुलिस को दी, सूचना पर पहुंची पुलिस ने एम्बुलेंस को बुलाया, और इलाज के लिए जिला अस्पताल ले गए, जहां डॉक्टर ने उसे मृत्यु घोषित कर दिया। कोतवाली प्रभारी ने बताया कि घटना की सूचना मृतक के परिजनों को दे गई हैं। और पोस्टमार्टम रिपोर्ट आने के बाद कार्यवाही की जायेगी।

*विवाहिता की मौत के मामले में प्रशासन ने संजय गांधी अस्पताल के लाइसेंस निलंबित करते हुए ओपीडी एवं इमरजेंसी सेवा पर लगाया प्रतिबंध*

अमेठी। मुंशीगंज स्थित संजय गांधी अस्पताल में ऑपरेशन थिएटर में बेहोश हुई विवाहिता की मौत के मामले में प्रशासन ने कड़ा कदम उठाया है। प्रशासन ने संजय गांधी अस्पताल के लाइसेंस निलंबित करते हुए ओपीडी एवं इमरजेंसी सेवा पर भी प्रतिबंध लगा दिया है। अस्पताल में पूर्व में भर्ती सिर्फ 20 मरीज का ठीक होने तक उपचार चलेगा। बता दें कि अस्पताल परिसर में 450 से अधिक अधिकारी व कर्मचारी कार्यरत हैं। अस्पताल बंद होने के बाद साढे चार सौ कर्मचारियों और अधिकारियों के रोजी-रोटी पर संकट अच्छा जाएगा। ऐसे में सभी को बेरोजगारी का दंश झेलना पड़ेगा।

कोतवाली क्षेत्र मुसाफिरखाना के गांव पांडेय का पुरवा मजरे रामशाहपुर निवासी अनुज शुक्ल की पत्नी दिव्या शुक्ला 14 सितंबर को मुंशीगंज स्थित संजय गांधी अस्पताल में पथरी का ऑपरेशन करने आई थी। ऑपरेशन थिएटर के अंदर बेहोशी का डोज देने के बाद दिव्या कोमा में चली गई, उसके बाद मेदांता में इलाज के दौरान मौत हो गई। आक्रोशित परिजनों व ग्रामीणों के प्रदर्शन के बाद अस्पताल के सीईओ व तीन चिकित्सकों के विरुद्ध गंभीर धाराओं में केस दर्ज हुआ।

सीएमओ की ओर से गठित तीन सदस्यीय जांच कमेटी की रिपोर्ट आने के बाद इलाज में लापरवाही का मामला सामने आया। शासन के निर्देश पर अस्पताल प्रबंधन को नोटिस जारी कर नए भर्ती मरीजों को भारती नहीं करने का निर्देश दिया गया था। सोमवार को जिला प्रशासन की ओर से अस्पताल प्रबंधन के विरुद्ध कड़ी कार्रवाई की गई है। सीएमओ डॉ. अंशुमान सिंह ने बताया कि संजय गांधी अस्पताल का लाइसेंस निलंबित करते हुए इमरजेंसी और ओपीडी सेवा पर प्रतिबंध लगाकर अस्पताल प्रबंधन को नोटिस दी गई है। पहले ही मरीजों को भर्ती करने पर रोक लगा दी गई थी।

विवाहिता की मौत के मामले में शासन के निर्देश पर संजय गांधी अस्पताल प्रबंधन को नए मरीजों को भर्ती न करने का नोटिस जारी किया गया था। नोटिस मिलने के बाद नए मरीज तो नहीं भर्ती हुए लेकिन, सोमवार को दिनभर इमरजेंसी और ओपीडी सेवाएं चलीं। ओपीडी सेवा में मरीजों की संख्या सामान्य दिनों की तरह रही तो वही इमरजेंसी में मरीज दिखाई पड़े। सीएमओ के निर्देश के क्रम में सोमवार को डिप्टी सीएमओ डॉ. पीके उपाध्याय ने अस्पताल पहुंचकर अभिलेख की जांच की। इसके साथ ही नए भर्ती मरीजों के संबंध में वार्डों को भी देखा। अस्पताल में पहले से भर्ती 20 मरीज मिले। जिनका इलाज चल रहा है।

सीएमओ डॉक्टर अंशुमान सिंह ने बताया कि जिला प्रशासन की ओर से संजय गांधी का अस्पताल का लाइसेंस निलंबित करते हुए नोटिस जारी कर ओपीडी और इमरजेंसी सेवा बंद करने का निर्देश दिया गया है। अस्पताल में पहले से भारती सिर्फ 20 मरीज के ठीक होने तक उनका इलाज चलेगा। सीएमओ ने बताया कि अन्य विधिक कार्रवाई की जा रही है। संजय गांधी अस्पताल के सीईओ अवधेश शर्मा ने बताया कि जिला प्रशासन की ओर से अस्पताल को कारण बताओ नोटिस जारी की गई थी। सोमवार को हम लोग जवाब बना रहे थे। फिर दोबारा लाइसेंस निलंबित कर ओपीडी वालों इमरजेंसी सेवा पर प्रतिबंध लगा दिया गया है। उन्होंने कहा कि हमें अपना पक्ष रखने का मौका नहीं दिया गया। बताया कि हायर अथॉरिटी को मामले से अवगत कराया गया है। उनके निर्देश के क्रम में कार्य किया जाएगा।

संजय गांधी अस्पताल के मैनेजर एडमिन सुरेश सिंह राजपूत ने कहा कि राजनीतिक विदेश भावना के तहत कार्यवाही की गई है। अस्पताल और चिकित्सकों की कोई कमी नहीं है। कुछ ऐसे मरीजों में इस तरह की समस्या आती है, जिसकी जांच अस्पताल प्रबंधन की ओर से कराई जा रही थी। मुंशीगंज स्थित संजय गांधी अस्पताल में वेंटीलेटर, ब्लड बैंक सुविधा, डायलिसिस, सीटी स्कैन, अल्ट्रासाउंड, एक्स-रे, ब्लड जांच सहित अन्य सुविधाएं हैं। अस्पताल परिसर में प्रतिदिन करीब 550 से 600 मरीजों की ओपीडी होती थी। वही प्रतिदिन 200 से अधिक मरीजों की इमरजेंसी भी होती थी। अस्पताल परिसर में 1000 से अधिक मरीजों की विभिन्न जांचें होती थी। इमरजेंसी और ओपीडी सेवा बंद होने के बाद अब मरीजों को भटकना पड़ेगा।

*नवनिर्मित राजकीय यूनानी अस्पताल बदइंतजामी का शिकार, तीन फुट गहरे पानी से गुजकर जाना पड़ता है मरीजों को अस्पताल*

अमेठी । केंद्रीयमंत्री व अमेठी सांसद स्मृति ईरानी के संसदीय क्षेत्र अमेठी के मुसाफिरखाना कस्बा स्थित नवनिर्मित राजकीय यूनानी अस्पताल बदइंतजामी का शिकार हो रहा है।हालत यह है कि अस्पताल आने जाने वाले मरीजों व तिमारदारो को तीन तीन फुट गहरे पानी में हलकर जाना पड़ता है।और वही डाक्टर व स्टाफ को अस्पताल परिसर के पीछे बाउंड्री वॉल पर सीढी लगाकर अंदर आना जाना पड़ रहा है।

अस्पताल तक मरीजों के पहुंचने के लिए अस्पताल की दरकार

केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी के संसदीय क्षेत्र वीवीआइपी क्षेत्रों में शुमार होता है। बीते वर्षों में प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ सरकार ने अति महत्वाकांक्षी योजना के अंतर्गत मुसाफिरखाना कस्बे में रेलवे स्टेशन के उत्तर दिशा में राजकीय यूनानी अस्पताल का निर्माण कराया है।15 बेड वाले अस्पताल में विभागीय स्तर पर जरूरी संसाधन उपलब्ध कराए गए हैं।चिकित्सा अधिकारी डॉ मधुवन किशोर शासन की मंशा के अनुरूप हॉस्पिटल में प्रतिदिन मरीजों का बेहतर इलाज करते रहते हैं।इसका अंदाजा इस बात से लगाया जा सकता है कि प्रतिदिन बड़ी संख्या में मरीज हॉस्पिटल पहुंचकर स्वास्थ्य लाभ ले रहे हैं।किंतु हॉस्पिटल पहुंचने के लिए एक अदद सड़क की दरकार अभी भी कायम है।

अधिकारियों से शिकायत के बाद भी नहीं हो रही कार्रवाई

बारिश की शुरुवात के साथ ही अस्पताल पहुंचने के लिए कोई मार्ग नहीं है।मुख्य गेट के सामने अतिक्रमण के साथ ही जलभराव लगातार बना हुआ है।विकल्प के तौर पर लोगों को अस्पताल आने जाने के लिए तीन फुट गहरे पानी से गुजर कर जाना पड रहा है।और वही डाक्टर सहित स्टाफ परिसर की पीछे बनी बाउंड्री वॉल को सीढ़ी के सहारे फांदकर आने जाने को मजबूर हैं ।चिकित्साधिकारी डाक्टर मधुवन किशोर बताते हैं कि पिछले कुछ महीनों से मुख्य रास्ते से आवागमन बंद है। उच्च अधिकारियों से शिकायत क बाद भी कोई हल नहीं निकला। वही क्षेत्रीय लोग मरीज व तीमारदारों ने भी शासन प्रशासन से सड़क बनवाने की मांग की है।

अस्पताल तक पहुंचने के लिए रोड बहुत जरूरी

यूनानी आयुर्वेद अधिकारी अनिता गुप्ता का कहना कि इसके संदर्भ में मैंने वहां के चिकित्सक प्रभारी से वार्ता किया है उन्होंने बताया कि मैंने कई बार उच्च अधिकारियों के संज्ञान में डाला है और वहां पर मरीजों की संख्या भी जादा है ।बरसात होने के चलते लोगों को अस्पताल पहुंचने में कठिनाइयों का सामना करना पड़ता है हम भी यही चाहते हैं कि रोड बन जाय जिससे लोगों की दिक्कतें खत्म हो जाय।

आवारा पशुओं की समस्या से ग्रामीण परेशान,सैकड़ों ग्रामीणों ने कलेक्ट्रेट का किया घेराव

अमेठी। जिले में आवारा पशुओं की समस्या से ग्रामीणों को काफी समस्या हो रही सासंद स्मृति ईरानी के पत्र के बाद भी प्रशासन मामले को गंभीरता से नही ले रहा आज सैकड़ों की संख्या में ग्रामीणों ने कलेक्ट्रेट का घेराव किया ग्रामीणों ने आवारा पशुओं की समस्या को लेकर विरोध प्रदर्शन के बाद एसडीएम को ज्ञापन सौंपा।

दरासल पूरा मामला भेटुवां विकासखंड के हीरापुर गांव का है जहां के ग्रामीणों ने आज सैकड़ों की संख्या में एकत्र होकर जिलाधिकारी कार्यालय का घेराव किया ग्रामीणों ने आरोप लगाते हुए कहां की आवारा पशुओं की समस्या कई महीनों से है फसल बर्बाद करने के साथ सड़क पर आवारा पशुओं, से हादसे हो रहे हम सब शिकायत करते करते थक गए हैं लेकिन समस्या का समाधान नहीं हो रहा है।

ग्रामीण अर्पित तिवारी ने बताया की आवारा पशुओं की समस्या हमारे यहाँ 3 वर्षो से है 3 वर्षों से ही नहीं जब से सरकार ने गोवंशों पर एक्शन लिया है तब से यह समस्या बनी है । हमारी फसल बर्बाद हो रही है शिकायत के बाद समाधान नहीं हो रहा है। अधिकारी गलत आख्या लगा देते हैं और हम सबको काफी समस्याएं हैं हम सबकी या मांग है कि आवारा पशुओं की समस्या को जल्द से जल्द खत्म किया जाए।

प्रेम प्रसंग के चलते किशोरी ने नहर में लगाई छलांग, पुलिस किशोरी की तलाश में जुटी


अमेठी । जिले में प्रेम प्रसंग के चलते एक किशोरी ने गांव के बाहर से गुजर रहे नहर में चलांग लगा दी।किशोरी के नहर में कूदने की सूचना मिलते ही बड़ी संख्या ग्रामीण मौके पर पहुंचे और नहर में कूद कर किशोरी तलाश शुरू कर दे लेकिन उनका कहीं पता नहीं चल सका।

ग्रामीणों ने घटना की जानकारी पुलिस को जिसके बाद मौके पर पहुंचे पुलिस ग्रामीणों की मदद से नहर में उतरकर किशोरी की तलाश में जुटी हुई है।फिलहाल 2 घंटे बाद भी अभी तक किशोरी का कोई सुराग नहीं लग सका है।

दरअसल ये पूरा मामला गौरीगंज थाना क्षेत्र के भोये गांव का है जहाँ आज दोपहर करीब एक बजे 15 वर्षीय किशोरी पहुँची और गांव के बाहर से जा रहे नहर में छलांग लगा दी।

किशोरी के नहर में छलांग लगाते ही ग्रामीणों ने तत्काल इसकी जानकारी परिजनों को दी।सूचना मिलते ही परिजन बदहवास मौके पर पहुँचे जिसके बाद बड़ी संख्या में ग्रामीण नदी में कूदकर किशोरी की तलाश में जुट गए लेकिन बहाव अधिक होने के कारण किशोरी का कही पता न चल सका।काफी देर बाद ग्रामीणों ने घटना की जानकारी जामो पुलिस को दी। 

जिसके बाद जामो थाने से के सेकेंड अफसर अनंजय कुमार टीम के साथ मौके पर पहुँचे और ग्रामीणों की मदद से किशोरी की तलाश शुरू कर दी लेकिन उन्हें भी कामयाबी नही मिली।घटना के दो घंटे से ज्यादा समय बीत जाने के बाद भी किशोरी के कही पता न चल सका।बताता जा रहा है कि किशोरी के किसी के साथ अफेयर चल रहा था जिसे लेकर परिजनों ने आज उसे डाँटा था।डांट से नाराज होकर किशोरी नहर के पास पहुँची और छलांग लगा दी।

एसएचओ ने कहा

वही पूरे मामले पर एसएचओ विवेक सिंह ने कहा कि नदी में किशोरी के छलांग लगाने की सूचना मिली थी जिसके बाद ग्रामीणों के सहयोग से किशोरी को तलाश किया जा रहा है।