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अटल बिहारी वाजपेयी: एक दूरदृष्टा नेता का भारत निर्माण में अमिट योगदान

#atalmanof_india

अटल बिहारी वाजपेयी (1924–2018) भारत के सबसे सम्मानित राजनीतिक नेताओं में से एक थे, जिनका योगदान देश के लिए राज्यकर्मी और दूरदृष्टा के रूप में अत्यधिक महत्वपूर्ण था। उन्होंने भारत के प्रधानमंत्री के रूप में तीन गैर-निरंतर कार्यकालों में सेवा की: 1996, 1998–2004 और 1996 में कुछ समय के लिए। उनके नेतृत्व और दृष्टिकोण ने भारत की घरेलू और अंतर्राष्ट्रीय नीतियों पर स्थायी प्रभाव डाला। यहां उनके कुछ प्रमुख योगदान दिए गए हैं:

1. राजनयिक प्रयास और शांति पहल

 -पाकिस्तान के साथ रिश्तों में सुधार: वाजपेयी ने पाकिस्तान के साथ राजनयिक रूप से जुड़ने के लिए महत्वपूर्ण प्रयास किए। 1999 में उन्होंने लाहौर की अपनी बस यात्रा के दौरान लाहौर घोषणा पर हस्ताक्षर किए, जो दोनों देशों के बीच शांति और रिश्तों को सामान्य बनाने के लिए एक मजबूत पहल थी।

-कारगिल युद्ध (1999): कारगिल संघर्ष के बाद, वाजपेयी के नेतृत्व की सराहना की गई, जिसमें उन्होंने स्थिति को अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर सावधानीपूर्वक संभालते हुए भारत की क्षेत्रीय अखंडता सुनिश्चित की।

- संयुक्त राज्य अमेरिका के साथ संबंध: वाजपेयी ने भारत और संयुक्त राज्य अमेरिका के बीच संबंधों को मजबूत करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। शुरू में कुछ संकोच के बावजूद, उनकी सरकार ने भारत को अमेरिकी रणनीतिक साझेदार बना दिया, खासकर रक्षा, विज्ञान और प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में।

 2. न्यूक्लियर प्रोग्राम

 पोकरण- II न्यूक्लियर परीक्षण (1998): वाजपेयी का सबसे महत्वपूर्ण योगदान भारत के पोकरण- II न्यूक्लियर परीक्षण की देखरेख करना था, जो मई 1998 में किए गए थे। वाजपेयी के नेतृत्व में भारत ने पांच परमाणु परीक्षण किए, जिससे भारत को एक परमाणु शक्ति के रूप में स्थापित किया। यह कदम भारत की सामरिक स्वतंत्रता और आत्मनिर्भरता का प्रतीक था।

- ये परीक्षण अंतर्राष्ट्रीय विवाद का कारण बने, लेकिन इसके साथ ही भारत को एक मान्यता प्राप्त परमाणु शक्ति बना दिया, जिससे उसकी सुरक्षा नीति को वैश्विक स्तर पर मजबूती मिली।

 3. आर्थिक सुधार और विकास

- आर्थिक उदारीकरण (1990 के दशक): वाजपेयी के नेतृत्व में भारत ने 1990 के दशक में शुरू किए गए आर्थिक सुधारों का समर्थन किया और उन्हें तेज़ किया। हालांकि ये सुधार प्रमुख रूप से प्रधानमंत्री नरसिंह राव के तहत हुए थे, वाजपेयी सरकार ने इसे जारी रखा और निजीकरण को बढ़ावा दिया तथा औद्योगिक नीति में सुधार किया।

- इन्फ्रास्ट्रक्चर विकास: उनकी सरकार ने कई प्रमुख बुनियादी ढांचा परियोजनाओं की शुरुआत की, जिनमें गोल्डन क्वाड्रिलेट्रल प्रोजेक्ट शामिल है, जिसका उद्देश्य दिल्ली, मुंबई, चेन्नई और कोलकाता जैसे चार प्रमुख शहरों को एक नेटवर्क के जरिए जोड़ना था, जिससे देश के सड़क संपर्क में सुधार हुआ।

4. सामाजिक और सांस्कृतिक योगदान

- भारतीय संस्कृति का प्रचार: वाजपेयी भारतीय संस्कृति के प्रबल समर्थक थे। उन्हें अपनी वाकपटुता और पारंपरिक मूल्यों से जुड़ाव के लिए जाना जाता था। अपने भाषणों में अक्सर कविताओं का उद्धरण करते थे। उनका भारत की सांस्कृतिक पहचान के प्रति गहरा सम्मान उनके नीतियों और सार्वजनिक जीवन में परिलक्षित होता था।

- समावेशी शासन: उन्होंने समाज के सभी वर्गों के कल्याण पर ध्यान केंद्रित किया और सामाजिक स्थिरता बनाए रखने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। उनकी सरकार ने अधिक समावेशी विकास के लिए एक ढांचा तैयार किया, जो भारत को एकजुट करता है।

 5. शासन और राजनीतिक धरोहर

- लोकतंत्र के समर्थक: वाजपेयी एक प्रतिबद्ध लोकतांत्रिक नेता थे, जिन्होंने एक धर्मनिरपेक्ष, बहुलवादी और समावेशी भारत की परिकल्पना की। उन्होंने भारतीय लोकतंत्र को बनाए रखने में अहम भूमिका निभाई और यह सुनिश्चित किया कि देश विभिन्न चुनौतियों के बावजूद एकजुट रहे।

- भारतीय जनता पार्टी (BJP): BJP के एक वरिष्ठ नेता के रूप में वाजपेयी का नेतृत्व पार्टी को एक महत्वपूर्ण राजनीतिक ताकत के रूप में स्थापित करने में महत्वपूर्ण था। उनकी राजनीति में उदार और समावेशी दृष्टिकोण ने BJP को एक राष्ट्रीय पार्टी बना दिया, जो उत्तर भारत से बाहर भी प्रभावशाली हो गई।

 6. सामाजिक कल्याण योजनाएँ

  - पंचायती राज अधिनियम (1993): वाजपेयी की सरकार के दौरान, भारत में पंचायती राज व्यवस्था को सशक्त बनाने और विकेंद्रीकरण पर जोर दिया गया। इससे ग्रामीण भारत को सशक्त बनाया गया और स्थानीय स्तर पर निर्णय लेने की प्रक्रिया को मजबूत किया गया।

शिक्षा और स्वास्थ्य पहल: वाजपेयी सरकार ने शिक्षा और स्वास्थ्य सेवाओं की पहुंच को बढ़ाने पर जोर दिया, विशेषकर ग्रामीण क्षेत्रों में।

7. उनकी नेतृत्व शैली

- वाजपेयी अपनी दूरदर्शिता, धैर्य और व्यावहारिक दृष्टिकोण के लिए जाने जाते थे। उनके नेतृत्व में, वे राष्ट्रीय सुरक्षा मामलों में सख्त और शांति की ओर बढ़ने में संतुलित थे। उनकी व्यक्तिगत ईमानदारी और संसद के प्रति सम्मान ने उन्हें राजनीतिक प्रतिद्वंद्वियों द्वारा भी सराहा।

8. पुरस्कार और सम्मान

  - अटल बिहारी वाजपेयी को 2015 में भारत के सर्वोच्च नागरिक सम्मान भारत रत्न से सम्मानित किया गया, जो उनके भारतीय राजनीति और शासन में योगदान को मान्यता प्रदान करता है।

- उनका प्रभाव केवल राजनीति तक सीमित नहीं था। उन्हें एक दूरदर्शी नेता के रूप में देखा जाता था, जिन्होंने वैश्विक और राष्ट्रीय परिप्रेक्ष्य को समझा और भारत के लिए एक बेहतर भविष्य की दिशा में काम किया।

अटल बिहारी वाजपेयी का योगदान भारतीय राजनीति, अर्थव्यवस्था और समाज में अत्यधिक महत्वपूर्ण था। वह एक ऐसे नेता के रूप में याद किए जाते हैं, जिनकी दूरदृष्टि और नेतृत्व ने आधुनिक भारत को आकार दिया। उनका प्रभाव हमेशा रहेगा, और वह एक मजबूत, आत्मविश्वासी और वैश्विक मंच पर सम्मानित भारत के निर्माता के रूप में याद किए जाएंगे।

वाजपेयी ने दी भारत को नव विकास की गारंटी”, अटल जी को पीएम मोदी ने यूं किया याद
#pm_moditribute_to_atal_bihari_vajpayee_on_100th_birthday

* आज यानी 25 दिसंबर को पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेई का 100वां जन्म दिवस है। भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के दिग्गज नेता अटल बिहारी जन्‍म के शताब्दी वर्ष पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने उन्‍हें याद करते हुए देश के लिए उनके योगदान को याद किया है। प्रधानमंत्री मोदी ने उन्हें श्रद्धांजलि देते हुए उनकी कविताओं की साहसिक लाइन को याद किया। उन्होंने लिखा कि मैं जी भर जिया, मैं मन से मरूं…लौटकर आऊंगा, कूच से क्यों डरूं? अटल जी के ये शब्द कितने साहसी, कितने गूढ़ हैं? अटल जी, कूच से नहीं डरे, उन जैसे व्यक्तित्व को किसी से डर लगता भी नहीं था। पीएम मोदी ने आगे लिखा है, वह यह भी कहते थे...जीवन बंजारों का डेरा आज यहां, कल कहां कूच है..कौन जानता किधर सवेरा। आज अगर वह हमारे बीच होते, तो अपनी जन्मतिथि पर नया सवेरा देख रहे होते। मैं वह दिन नहीं भूलता, जब उन्होंने मुझे पास बुलाकर अंकवार में भर लिया था और जोर से पीठ पर धौल जमा दी थी। वह स्नेह, वह अपनत्व, वह प्रेम मेरे जीवन का बहुत बड़ा सौभाग्य रहा है। पीएम मोदी ने राजनितिक अस्थिरता के दौर में अटल बिहारी वाजपेयी के नेतृत्व की सरहना की और कहा कि 21वीं सदी को भारत की सदी बनाने के लिए उनकी एनडीए सरकार ने जो कदम उठाए, उसने देश को एक नई दिशा, नई गति दी। 1998 के जिस काल में उन्होंने पीएम पद संभाला, उस दौर में पूरा देश राजनीतिक अस्थिरता से घिरा हुआ था। 9 साल में देश ने चार बार लोकसभा के चुनाव देखे थे। लोगों को शंका थी कि ये सरकार भी उनकी उम्मीदों को पूरा नहीं कर पाएगी। ऐसे समय में एक सामान्य परिवार से आने वाले अटल जी ने, देश को स्थिरता और सुशासन का मॉडल दिया। भारत को नव विकास की गारंटी दी। *ऐसे नेता, जिनका प्रभाव भी आज तक अटल-पीएम मोदी* वो ऐसे नेता थे, जिनका प्रभाव भी आज तक अटल है। वो भविष्य के भारत के परिकल्पना पुरुष थे। उनकी सरकार ने देश को आईटी, टेलीकम्यूनिकेशन और दूरसंचार की दुनिया में तेजी से आगे बढ़ाया। उनके शासन काल में ही, एनडीए ने टेक्नॉलजी को सामान्य मानवी की पहुंच तक लाने का काम शुरू किया। भारत के दूर-दराज के इलाकों को बड़े शहरों से जोड़ने के सफल प्रयास किये गए। वाजपेयी जी की सरकार में शुरू हुई जिस स्वर्णिम चतुर्भुज योजना ने भारत के महानगरों को एक सूत्र में जोड़ा वो आज भी लोगों की स्मृतियों पर अमिट है। *लोकल कनेक्टिविटी को बढ़ाया-पीएम मोदी* लोकल कनेक्टिविटी को बढ़ाने के लिए भी एनडीए गठबंधन की सरकार ने प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना जैसे कार्यक्रम शुरू किए। उनके शासन काल में दिल्ली मेट्रो शुरू हुई, जिसका विस्तार आज हमारी सरकार एक वर्ल्ड क्लास इंफ्रास्ट्रक्चर प्रोजेक्ट के रूप में कर रही है। ऐसे ही प्रयासों से उन्होंने ना सिर्फ आर्थिक प्रगति को नई शक्ति दी, बल्कि दूर-दराज के क्षेत्रों को एक दूसरे से जोड़कर भारत की एकता को भी सशक्त किया। *अटल सरकार में भाई-भतीजावाद में फंसी देश की अर्थव्यवस्था को नई गति मिली-पीएम मोदी* जब भी सर्व शिक्षा अभियान की बात होती है, तो अटल जी की सरकार का जिक्र जरूर होता है। शिक्षा को सर्वोच्च प्राथमिकता मानने वाले वाजपेयी जी ने एक ऐसे भारत का सपना देखा था, जहां हर व्यक्ति को आधुनिक और गुणवत्ता वाली शिक्षा मिले। वो चाहते थे भारत के वर्ग, यानि ओबीसी, एससी, एसटी, आदिवासी और महिला सभी के लिए शिक्षा सहज और सुलभ बने। उनकी सरकार ने देश की अर्थव्यवस्था को गति देने के लिए कई बड़े आर्थिक सुधार किए। इन सुधारों के कारण भाई-भतीजावाद में फंसी देश की अर्थव्यवस्था को नई गति मिली। उस दौर की सरकार के समय में जो नीतियां बनीं, उनका मूल उद्देश्य सामान्य मानवी के जीवन को बदलना ही रहा।
Makes360 - a digital consulting company in India, concludes its summer training 2k24

 

Our summer training program is a cornerstone of our commitment to developing the next generation of digital marketing leaders - Anish Kumar, CEO, Makes360”Makes360, a leading IT company headquartered in Mohali, Punjab specializing in digital marketing solutions, wrapped up its summer training on 12 July 2024. The training was initiated on 13 June 2024 and focused on the Advanced Digital Training & Business Leadership Mentorship Program. 

This training was conducted in association with Atal Community Innovation Centre (ACIC) RISE Association, supported by AIM, NITI Aayog (Govt. of India) and Chandigarh Group of College, Landran. It was managed successfully by Makes360’s team. 100+ students became a part of the training that went on for one month. The curriculum included 6 specialized headships delivered by the CEO and co-founder of Makes360, Anish Kumar. 

The students who demonstrated remarkable skills and achievements were felicitated with trophies and certificates by honorable deputies of Chandigarh Group of Colleges and ACIC RISE. Dr. P. N. Hrisheekesha (Campus Director, CGC), Dr. Ruchi Singla (Director Research, ACIC RISE), Dr. Rajdeep Singh (Executive Director, CEC), Dr. Amandeep Kaur (HOD, IT), Dr. Palki Sahib Kaur (Executive Director, CCT) was present as a guest on the event.

The awarded students Tamanna Aggarwal (B.tech, AI-ML, CEC - Best Coordinator), Ankita (B.tech, CSE, COE - Best Achiever), Shikha (B.tech, CSE, CEC - 100% Attendance), Ayush Singh (B.tech, AI-ML, CEC - Best Achiever), Beerpal Singh (UIS Dept. of Mathematics, Chandigarh University - Best Achiever), Aryan Raj (B.tech, CSE, CEC - Best Achiever), Vivek Negi (B.tech, CSE, CEC - Best Achiever), and Shridhar Kumar (B.tech, IT, CEC - Best Coordinator) showed dedication to learning and exceptional performance during the training.

Being the founder and CEO of a Digital Service Providing Company, Makes360, Anish Kumar impressed everyone with his captivating keynote speech. Subsequently, the leadership of the training program together with commitment to encouraging digital innovation has been mainly from him. 

"This past month has been quite productive for all of our students and we want to thank you for your hard work and diligence. This is an exceptional program that has proved the impact of digital education on transforming lives and businesses. We are cheerful to see superb performances by our students, I’m also thankful to ACIC Rise and CGC Landran for trusting in our company" said Anish Kumar, CEO and co-founder of Makes360.

Makes360 is an IT company that provides business consulting, information technology, and outsourcing services to B2B and B2C clients across 54+ industries across the globe. Established in 2018, the company focuses on helping clients enhance their online presence and achieve their marketing goals.

Website :- https://www.makes360.com/services/

Akshat Nayyar, CEO Truemeds, shares How E-Pharmacies are Reshaping Medication Habits

Imagine a world where a few taps on your smartphone help you manage your health. Online or e-pharmacies are making this dream a reality by reshaping how we approach and understand our health and medication habits. These online platforms are more than just convenient storefronts — they are leading a revolution in healthcare accessibility and consumer education.

Gone are the days when consumers blindly followed medications based on prescriptions, with little knowledge or control over the process. Thanks to the wealth of information available online, from blogs to review platforms, we are far more aware now of our rights as consumers and are making informed choices about everything - from the food we eat to the skincare products we use. A recently found study by Bain & Co. on Asia-Pacific Front Line of Healthcare 2024 also states that Healthcare is no longer a passive experience: Consumers are taking charge of their health, are demanding a better experience, and are willing to invest in wellness.

The COVID-19 pandemic was a catalyst for this shift, forcing people to embrace e-commerce and online services out of sheer necessity. Even in smaller cities and suburbs, where the adoption of e-commerce might have otherwise been slower, the pandemic drove people to explore online shopping for essentials, including medicines. This shift towards e-pharmacies has continued to spike as these platforms bridge the gap in accessible and affordable healthcare. 

In fact, the Bain & Co. study also found that consumers desire a single touchpoint to manage their health and are increasingly placing high trust in primary care providers and other alternative sites of care like pharmacies and digital health. While face-to-face interactions are more commonly preferred, the pandemic has increased acceptance of virtual touchpoints. 

In India alone, there are over 50 e-pharmacy startups, serving around 5 million users every month with reasonably priced, high-quality medicines. The growth is fueled by rising education levels, increased consumer rights awareness, higher disposable incomes, and urbanization-driven lifestyle changes. Key to this is digital inclusion, as the internet and smartphones have reached a significant portion of the population. 

Why are e-pharmacies trending?

In today's fast-paced world, the hassle of traditional medication procurement processes—from scheduling appointments to purchasing medicines—is becoming increasingly unappealing. 

The biggest draw of e-pharmacies lies in the convenience they offer. One can easily track past orders, further helping them to take control of their healthcare needs from the comfort of their homes. Hence, offering “one-stop shop” solutions for all their needs, leveraging tech capabilities for better patient engagement. Pricing information is readily available on their platforms, and customers can compare options and choose the most affordable solutions for their prescription needs. This newfound transparency helps users make informed decisions and access the best deals. The survey also stated that telehealth led to major saving of healthcare costs due to the early triage and steerage care coupled with the low price point and pharmacy attach rate for teleconsultation compared to in-person primary consultation.

Future outlook

As the Indian government continues to push for digital transformation in the healthcare sector, e-pharmacies are likely to receive more support and recognition in the future.

Akasht Nayyar, CEO Truemeds, shares How E-Pharmacies are Reshaping Medication Habits

 

Imagine a world where a few taps on your smartphone help you manage your health. Online or e-pharmacies are making this dream a reality by reshaping how we approach and understand our health and medication habits. These online platforms are more than just convenient storefronts — they are leading a revolution in healthcare accessibility and consumer education.

Gone are the days when consumers blindly followed medications based on prescriptions, with little knowledge or control over the process. Thanks to the wealth of information available online, from blogs to review platforms, we are far more aware now of our rights as consumers and are making informed choices about everything - from the food we eat to the skincare products we use. A recently found study by Bain & Co. on Asia-Pacific Front Line of Healthcare 2024 also states that Healthcare is no longer a passive experience: Consumers are taking charge of their health, are demanding a better experience, and are willing to invest in wellness.

The COVID-19 pandemic was a catalyst for this shift, forcing people to embrace e-commerce and online services out of sheer necessity. Even in smaller cities and suburbs, where the adoption of e-commerce might have otherwise been slower, the pandemic drove people to explore online shopping for essentials, including medicines. This shift towards e-pharmacies has continued to spike as these platforms bridge the gap in accessible and affordable healthcare. 

In fact, the Bain & Co. study also found that consumers desire a single touchpoint to manage their health and are increasingly placing high trust in primary care providers and other alternative sites of care like pharmacies and digital health. While face-to-face interactions are more commonly preferred, the pandemic has increased acceptance of virtual touchpoints. 

In India alone, there are over 50 e-pharmacy startups, serving around 5 million users every month with reasonably priced, high-quality medicines. The growth is fueled by rising education levels, increased consumer rights awareness, higher disposable incomes, and urbanization-driven lifestyle changes. Key to this is digital inclusion, as the internet and smartphones have reached a significant portion of the population. 

Why are e-pharmacies trending?

In today's fast-paced world, the hassle of traditional medication procurement processes—from scheduling appointments to purchasing medicines—is becoming increasingly unappealing. 

The biggest draw of e-pharmacies lies in the convenience they offer. One can easily track past orders, further helping them to take control of their healthcare needs from the comfort of their homes. Hence, offering “one-stop shop” solutions for all their needs, leveraging tech capabilities for better patient engagement. Pricing information is readily available on their platforms, and customers can compare options and choose the most affordable solutions for their prescription needs. This newfound transparency helps users make informed decisions and access the best deals. The survey also stated that telehealth led to major saving of healthcare costs due to the early triage and steerage care coupled with the low price point and pharmacy attach rate for teleconsultation compared to in-person primary consultation.

Future outlook

As the Indian government continues to push for digital transformation in the healthcare sector, e-pharmacies are likely to receive more support and recognition in the future

झारखंड में भीषण गर्मी को देखते हुए KG से 8 तक की कक्षाए अगले आदेश तक के लिए स्थगित रहेगी

रांची : झारखंड राज्य में अत्यधिक गर्मी व लू के कारण स्कूली छात्रों के स्वास्थ्य पर पड़ने वाले प्रतिकूल प्रभाव की आशंका से राज्य की KG से 8 तक की कक्षाएं अगले आदेश तक स्थगित रहेगी।

राज्य में संचालित सभी सरकारी, गैर सरकारी, सहायता प्राप्त व निजी विद्यालयों की KG से 8 तक की कक्षाएं अगले आदेश तक स्थगित रहेगी। वही सरकारी गैर सरकारी सहायता प्राप्त गैर सहायता प्राप्त विद्यालयों के शिक्षक व शिक्षकेतर कर्मियों पर यह आदेश लागू नहीं होगा।

 ग्रीष्मावकाश के लिए अलग से आदेश जारी किया जाएगा। ये शिक्षक शिक्षकेतर कर्मी अपने निर्धारित समय पर विद्यालय आएंगे और कार्यों का निर्वहन करेंगे। वही सभी प्रकार के आवासीय विद्यालय पूर्व की भांति यथासंभव संचालित रहेगी।

शिक्षकों को यह कार्य करने का आदेश दिया गया

• कक्षा 1 से 7 तक की वार्षिक परीक्षा की उत्तर पुस्तिकाओं का मूल्यांकन करते हुए परीक्षाफल प्रकाशन, रिपोर्ट कार्ड की तैयारी, छात्रवार विद्यार्थियों के प्राप्तांक को ई-विद्यावाहिनी में ऑनलाईन प्रविष्टि करने का कार्य पूर्ण करेंगे।

• यू-डाईस प्लस में विद्यार्थियों के आंकड़ों की शत-प्रतिशत प्रविष्टि का कार्य पूर्ण करेंगे।

• विद्यालय के पुस्तकालय में उपलब्ध पुस्तकों की Cataloging करते हुए इसे संधारित करना सुनिश्चित करेंगे।

• विद्यालय के सभी प्रकार के पंजी, बैंक पासबुक, कैशबुक इत्यादि का अद्यतन संधारण करेंगे।

• शैक्षणिक सत्र-2024-25 के लिए आने वाले विद्यार्थियों का नामांकन का कार्य करेंगे।

 कक्षा 9 से ऊपर की कक्षाएं सुबह 7 बजे से 11.30 बजे तक संचालित की जाएगी। इस अवधि में प्रार्थना सभा या खेलकूद एवं अन्य आउटडोर गतिविधियां संचालित नहीं की जाएगी।

Kragbuzz Retail Unveils Flagship Store in Noida, Welcomes Distinguished Guests.

 

In a momentous event that marked the convergence of sports enthusiasts, industry leaders, and celebrities, Kragbuzz Retail proudly inaugurated its flagship store in Noida. The grand opening ceremony, held from April 19th to April 21st, saw the unveiling of a meticulously curated space dedicated to providing athletes of all levels with access to top-notch gear, apparel, and equipment.

The Kragbuzz Retail main shop, located in a bustling sector of Noida, covers three sprawling floors and exudes an air of athletic excellence and creativity. From quality clothes and accessories to cutting-edge sports equipment, the shop provides a wide choice of items sourced from top companies throughout the world. With a solid dedication to quality and client happiness, Kragbuzz Retail aims to redefine the sporting experience for enthusiasts and professionals alike.

Kragbuzz Retail's goal is based on a passion for sports and a commitment to excellence. Mr. Arjun Gupta founded the business, which reflects the result of years of industry experience and a constant quest for quality. Kragbuzz Retail aspires to be more than just a retail space, with a clear focus on providing athletes with access to the highest quality gear. It wants to be a sanctuary for sports enthusiasts, a place where they can find inspiration, guidance, and the tools they need to excel in their respective fields.

Kragbuzz Retail's opening ceremony was attended by a remarkable group of guests, each of whom brought their own distinct viewpoint and skills to the occasion. Mr. Rajat Sharma, Chairman and Editor in Chief of India TV, led the opening activities. Mr. Rohan Jaitley, President of the DDCA, Mr. CK Khanna, Former President of the BCCI, and Mr. Madan Lal, former Indian cricketer and World Cup champion from 1983, all joined him.

Mr. Vijay Singh, IPS - Jt.CP Delhi Police, and Mr. Santosh K Rai, IAS - Secretary (Home), Delhi Government, Mr. Rakesh Paweriya, IPS - DCP, Delhi Police, Mr. Lakshay Singhal, IAS - DM-South West Delhi, Mr. Gangadhar Panda, IRS - Addl Director-General, DGFT, and Mr. Bhavya Bishnoi - MLA, Haryana Legislative Assembly, whose presence highlighted the significance of Kragbuzz Retail's opening. Also in attendance were significant individuals from the media profession, including Mr. Vijay Lokapally, senior journalist, Mr. Aniket Mishra, senior journalist specializing in FIFA, and Mr. Shankar Singh, journalist.

The event also included prominent sports celebrities such as Mr. Parvinder Awana, a former Indian cricketer, and Mr. Smit Singh, an international shooter, who supported Kragbuzz Retail's objective to promote athletic achievement and innovation.

Mr. Manoj Mittal, Chairman, Alumni Management Company; Mr. Pawan Gulati, Treasurer, DDCA; and Mr. Shyam Sharma, Director, Executive Member of DDCA and Delhi High Court Bar Association, are among the other important visitors who attended. In addition, Mr. Rajesh Mishra, Secretary of the Delhi Bar Council, Mr. Anmol Nohria, Magistrate of Karkardooma Court, and world-renowned astrologer Mr. Nitin Kashyap were in attendance.

In his opening remarks, Mr. Arjun Gupta thanked the distinguished guests for their attendance and stressed Kragbuzz Retail's dedication to offering sports fanatics outstanding quality and service. He also discussed the store's future plans, emphasizing its position as a catalyst for the growth and development of the local athletic community.

As the three-day event came to a conclusion, guests left full of enthusiasm and expectation for the future of sports retail in Noida. With its flagship shop now available to the public, Kragbuzz Retail hopes to serve as a source of inspiration and excellence for athletes of all levels, empowering them to achieve new heights of accomplishment.

To connect or make a purchase with Kragbuzz, click on the link provided below.

Website : https://kragbuzz.com/ 

                https://kragbuzzretail.com/  

Instagram : https://www.instagram.com/kragbuzzretailstore?igsh=YzljYTk1ODg3Zg==  

Unveiling the Cosmic Wisdom: The Journey of Ritika Bajaj - Astrologer, Numerologist, and Akashic Record Reader

In the realm where the celestial meets the terrestrial, there exists a luminous soul named Ritika Bajaj, whose journey is an odyssey through the cosmic mysteries of astrology, numerology, and Akashic record reading. With her profound insights and intuitive wisdom, Ritika traverses the ethereal landscapes of destiny, offering seekers a glimpse into the intricate tapestry of their lives.

Ritika's fascination with the esoteric arts began at a young age, as she found solace in the silent whispers of the stars and the profound symbolism of numbers. Her journey into the mystical realms of astrology, numerology, and Akashic record reading was not merely an intellectual pursuit but a calling of the soul, guiding her towards a deeper understanding of the universe and her place within it.

As an astrologer, Ritika possesses a rare gift for deciphering the cosmic dance of planets and stars. Through meticulous chart readings and intuitive insights, she unveils the hidden patterns of destiny, illuminating the path ahead with clarity and purpose. Ritika's approach to astrology is not fatalistic but empowering, emphasizing the power of self-awareness and conscious choice in shaping one's destiny.

In the realm of numerology, Ritika's expertise lies in decoding the mystical language of numbers. With a keen eye for numerical patterns and their spiritual significance, she unravels the secrets of one's name and birthdate, revealing the underlying currents of energy and vibration that shape one's life. Ritika's numerological readings are like keys that unlock the door to self-discovery, offering profound insights into personality traits, karmic lessons, and soul's purpose.

Beyond the realms of astrology and numerology, Ritika delves into the sacred mysteries of the Akashic records. As an Akashic record reader, she serves as a bridge between the earthly realm and the cosmic archives that hold the memories of all existence. With deep reverence and spiritual attunement, Ritika accesses the Akashic records to retrieve soul-level insights, past-life experiences, and karmic imprints that illuminate the soul's journey through time.

What sets Ritika apart is not just her knowledge and expertise but her compassionate heart and profound empathy. She approaches each consultation with humility and grace, creating a safe space for seekers to explore their deepest truths and vulnerabilities. Ritika's guidance is not prescriptive but nurturing, empowering individuals to embrace their authentic selves and live in alignment with their highest purpose.

In a world that often feels fragmented and chaotic, Ritika's work serves as a beacon of light and wisdom. Through her astrology, numerology, and Akashic record readings, she reminds us of the interconnectedness of all things and the eternal dance of creation. Ritika's journey is not just about unraveling the mysteries of the cosmos but about helping others awaken to the divinity that resides within them.

As we journey alongside Ritika Bajaj, we are invited to embark on a quest for self-discovery and spiritual awakening. Through the sacred arts of astrology, numerology, and Akashic record reading, we reclaim our place in the cosmic symphony and embrace the infinite possibilities that await us. In Ritika's presence, we are reminded that we are not merely observers but active participants in the grand tapestry of existence, each thread woven with purpose and meaning.

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आज प्रदोष व्रत,यह दिन महादेव को है समर्पित,इस दिन सुख समृद्धि के लिए लोग रखते हैं ब्रत

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साहिबगंज नींबू पहाड़ में हुए अवैध खनन की जांच को लेकर फिर एक बार सीबीआई की दविश।

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अटल बिहारी वाजपेयी: एक दूरदृष्टा नेता का भारत निर्माण में अमिट योगदान

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अटल बिहारी वाजपेयी (1924–2018) भारत के सबसे सम्मानित राजनीतिक नेताओं में से एक थे, जिनका योगदान देश के लिए राज्यकर्मी और दूरदृष्टा के रूप में अत्यधिक महत्वपूर्ण था। उन्होंने भारत के प्रधानमंत्री के रूप में तीन गैर-निरंतर कार्यकालों में सेवा की: 1996, 1998–2004 और 1996 में कुछ समय के लिए। उनके नेतृत्व और दृष्टिकोण ने भारत की घरेलू और अंतर्राष्ट्रीय नीतियों पर स्थायी प्रभाव डाला। यहां उनके कुछ प्रमुख योगदान दिए गए हैं:

1. राजनयिक प्रयास और शांति पहल

 -पाकिस्तान के साथ रिश्तों में सुधार: वाजपेयी ने पाकिस्तान के साथ राजनयिक रूप से जुड़ने के लिए महत्वपूर्ण प्रयास किए। 1999 में उन्होंने लाहौर की अपनी बस यात्रा के दौरान लाहौर घोषणा पर हस्ताक्षर किए, जो दोनों देशों के बीच शांति और रिश्तों को सामान्य बनाने के लिए एक मजबूत पहल थी।

-कारगिल युद्ध (1999): कारगिल संघर्ष के बाद, वाजपेयी के नेतृत्व की सराहना की गई, जिसमें उन्होंने स्थिति को अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर सावधानीपूर्वक संभालते हुए भारत की क्षेत्रीय अखंडता सुनिश्चित की।

- संयुक्त राज्य अमेरिका के साथ संबंध: वाजपेयी ने भारत और संयुक्त राज्य अमेरिका के बीच संबंधों को मजबूत करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। शुरू में कुछ संकोच के बावजूद, उनकी सरकार ने भारत को अमेरिकी रणनीतिक साझेदार बना दिया, खासकर रक्षा, विज्ञान और प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में।

 2. न्यूक्लियर प्रोग्राम

 पोकरण- II न्यूक्लियर परीक्षण (1998): वाजपेयी का सबसे महत्वपूर्ण योगदान भारत के पोकरण- II न्यूक्लियर परीक्षण की देखरेख करना था, जो मई 1998 में किए गए थे। वाजपेयी के नेतृत्व में भारत ने पांच परमाणु परीक्षण किए, जिससे भारत को एक परमाणु शक्ति के रूप में स्थापित किया। यह कदम भारत की सामरिक स्वतंत्रता और आत्मनिर्भरता का प्रतीक था।

- ये परीक्षण अंतर्राष्ट्रीय विवाद का कारण बने, लेकिन इसके साथ ही भारत को एक मान्यता प्राप्त परमाणु शक्ति बना दिया, जिससे उसकी सुरक्षा नीति को वैश्विक स्तर पर मजबूती मिली।

 3. आर्थिक सुधार और विकास

- आर्थिक उदारीकरण (1990 के दशक): वाजपेयी के नेतृत्व में भारत ने 1990 के दशक में शुरू किए गए आर्थिक सुधारों का समर्थन किया और उन्हें तेज़ किया। हालांकि ये सुधार प्रमुख रूप से प्रधानमंत्री नरसिंह राव के तहत हुए थे, वाजपेयी सरकार ने इसे जारी रखा और निजीकरण को बढ़ावा दिया तथा औद्योगिक नीति में सुधार किया।

- इन्फ्रास्ट्रक्चर विकास: उनकी सरकार ने कई प्रमुख बुनियादी ढांचा परियोजनाओं की शुरुआत की, जिनमें गोल्डन क्वाड्रिलेट्रल प्रोजेक्ट शामिल है, जिसका उद्देश्य दिल्ली, मुंबई, चेन्नई और कोलकाता जैसे चार प्रमुख शहरों को एक नेटवर्क के जरिए जोड़ना था, जिससे देश के सड़क संपर्क में सुधार हुआ।

4. सामाजिक और सांस्कृतिक योगदान

- भारतीय संस्कृति का प्रचार: वाजपेयी भारतीय संस्कृति के प्रबल समर्थक थे। उन्हें अपनी वाकपटुता और पारंपरिक मूल्यों से जुड़ाव के लिए जाना जाता था। अपने भाषणों में अक्सर कविताओं का उद्धरण करते थे। उनका भारत की सांस्कृतिक पहचान के प्रति गहरा सम्मान उनके नीतियों और सार्वजनिक जीवन में परिलक्षित होता था।

- समावेशी शासन: उन्होंने समाज के सभी वर्गों के कल्याण पर ध्यान केंद्रित किया और सामाजिक स्थिरता बनाए रखने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। उनकी सरकार ने अधिक समावेशी विकास के लिए एक ढांचा तैयार किया, जो भारत को एकजुट करता है।

 5. शासन और राजनीतिक धरोहर

- लोकतंत्र के समर्थक: वाजपेयी एक प्रतिबद्ध लोकतांत्रिक नेता थे, जिन्होंने एक धर्मनिरपेक्ष, बहुलवादी और समावेशी भारत की परिकल्पना की। उन्होंने भारतीय लोकतंत्र को बनाए रखने में अहम भूमिका निभाई और यह सुनिश्चित किया कि देश विभिन्न चुनौतियों के बावजूद एकजुट रहे।

- भारतीय जनता पार्टी (BJP): BJP के एक वरिष्ठ नेता के रूप में वाजपेयी का नेतृत्व पार्टी को एक महत्वपूर्ण राजनीतिक ताकत के रूप में स्थापित करने में महत्वपूर्ण था। उनकी राजनीति में उदार और समावेशी दृष्टिकोण ने BJP को एक राष्ट्रीय पार्टी बना दिया, जो उत्तर भारत से बाहर भी प्रभावशाली हो गई।

 6. सामाजिक कल्याण योजनाएँ

  - पंचायती राज अधिनियम (1993): वाजपेयी की सरकार के दौरान, भारत में पंचायती राज व्यवस्था को सशक्त बनाने और विकेंद्रीकरण पर जोर दिया गया। इससे ग्रामीण भारत को सशक्त बनाया गया और स्थानीय स्तर पर निर्णय लेने की प्रक्रिया को मजबूत किया गया।

शिक्षा और स्वास्थ्य पहल: वाजपेयी सरकार ने शिक्षा और स्वास्थ्य सेवाओं की पहुंच को बढ़ाने पर जोर दिया, विशेषकर ग्रामीण क्षेत्रों में।

7. उनकी नेतृत्व शैली

- वाजपेयी अपनी दूरदर्शिता, धैर्य और व्यावहारिक दृष्टिकोण के लिए जाने जाते थे। उनके नेतृत्व में, वे राष्ट्रीय सुरक्षा मामलों में सख्त और शांति की ओर बढ़ने में संतुलित थे। उनकी व्यक्तिगत ईमानदारी और संसद के प्रति सम्मान ने उन्हें राजनीतिक प्रतिद्वंद्वियों द्वारा भी सराहा।

8. पुरस्कार और सम्मान

  - अटल बिहारी वाजपेयी को 2015 में भारत के सर्वोच्च नागरिक सम्मान भारत रत्न से सम्मानित किया गया, जो उनके भारतीय राजनीति और शासन में योगदान को मान्यता प्रदान करता है।

- उनका प्रभाव केवल राजनीति तक सीमित नहीं था। उन्हें एक दूरदर्शी नेता के रूप में देखा जाता था, जिन्होंने वैश्विक और राष्ट्रीय परिप्रेक्ष्य को समझा और भारत के लिए एक बेहतर भविष्य की दिशा में काम किया।

अटल बिहारी वाजपेयी का योगदान भारतीय राजनीति, अर्थव्यवस्था और समाज में अत्यधिक महत्वपूर्ण था। वह एक ऐसे नेता के रूप में याद किए जाते हैं, जिनकी दूरदृष्टि और नेतृत्व ने आधुनिक भारत को आकार दिया। उनका प्रभाव हमेशा रहेगा, और वह एक मजबूत, आत्मविश्वासी और वैश्विक मंच पर सम्मानित भारत के निर्माता के रूप में याद किए जाएंगे।

वाजपेयी ने दी भारत को नव विकास की गारंटी”, अटल जी को पीएम मोदी ने यूं किया याद
#pm_moditribute_to_atal_bihari_vajpayee_on_100th_birthday

* आज यानी 25 दिसंबर को पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेई का 100वां जन्म दिवस है। भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के दिग्गज नेता अटल बिहारी जन्‍म के शताब्दी वर्ष पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने उन्‍हें याद करते हुए देश के लिए उनके योगदान को याद किया है। प्रधानमंत्री मोदी ने उन्हें श्रद्धांजलि देते हुए उनकी कविताओं की साहसिक लाइन को याद किया। उन्होंने लिखा कि मैं जी भर जिया, मैं मन से मरूं…लौटकर आऊंगा, कूच से क्यों डरूं? अटल जी के ये शब्द कितने साहसी, कितने गूढ़ हैं? अटल जी, कूच से नहीं डरे, उन जैसे व्यक्तित्व को किसी से डर लगता भी नहीं था। पीएम मोदी ने आगे लिखा है, वह यह भी कहते थे...जीवन बंजारों का डेरा आज यहां, कल कहां कूच है..कौन जानता किधर सवेरा। आज अगर वह हमारे बीच होते, तो अपनी जन्मतिथि पर नया सवेरा देख रहे होते। मैं वह दिन नहीं भूलता, जब उन्होंने मुझे पास बुलाकर अंकवार में भर लिया था और जोर से पीठ पर धौल जमा दी थी। वह स्नेह, वह अपनत्व, वह प्रेम मेरे जीवन का बहुत बड़ा सौभाग्य रहा है। पीएम मोदी ने राजनितिक अस्थिरता के दौर में अटल बिहारी वाजपेयी के नेतृत्व की सरहना की और कहा कि 21वीं सदी को भारत की सदी बनाने के लिए उनकी एनडीए सरकार ने जो कदम उठाए, उसने देश को एक नई दिशा, नई गति दी। 1998 के जिस काल में उन्होंने पीएम पद संभाला, उस दौर में पूरा देश राजनीतिक अस्थिरता से घिरा हुआ था। 9 साल में देश ने चार बार लोकसभा के चुनाव देखे थे। लोगों को शंका थी कि ये सरकार भी उनकी उम्मीदों को पूरा नहीं कर पाएगी। ऐसे समय में एक सामान्य परिवार से आने वाले अटल जी ने, देश को स्थिरता और सुशासन का मॉडल दिया। भारत को नव विकास की गारंटी दी। *ऐसे नेता, जिनका प्रभाव भी आज तक अटल-पीएम मोदी* वो ऐसे नेता थे, जिनका प्रभाव भी आज तक अटल है। वो भविष्य के भारत के परिकल्पना पुरुष थे। उनकी सरकार ने देश को आईटी, टेलीकम्यूनिकेशन और दूरसंचार की दुनिया में तेजी से आगे बढ़ाया। उनके शासन काल में ही, एनडीए ने टेक्नॉलजी को सामान्य मानवी की पहुंच तक लाने का काम शुरू किया। भारत के दूर-दराज के इलाकों को बड़े शहरों से जोड़ने के सफल प्रयास किये गए। वाजपेयी जी की सरकार में शुरू हुई जिस स्वर्णिम चतुर्भुज योजना ने भारत के महानगरों को एक सूत्र में जोड़ा वो आज भी लोगों की स्मृतियों पर अमिट है। *लोकल कनेक्टिविटी को बढ़ाया-पीएम मोदी* लोकल कनेक्टिविटी को बढ़ाने के लिए भी एनडीए गठबंधन की सरकार ने प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना जैसे कार्यक्रम शुरू किए। उनके शासन काल में दिल्ली मेट्रो शुरू हुई, जिसका विस्तार आज हमारी सरकार एक वर्ल्ड क्लास इंफ्रास्ट्रक्चर प्रोजेक्ट के रूप में कर रही है। ऐसे ही प्रयासों से उन्होंने ना सिर्फ आर्थिक प्रगति को नई शक्ति दी, बल्कि दूर-दराज के क्षेत्रों को एक दूसरे से जोड़कर भारत की एकता को भी सशक्त किया। *अटल सरकार में भाई-भतीजावाद में फंसी देश की अर्थव्यवस्था को नई गति मिली-पीएम मोदी* जब भी सर्व शिक्षा अभियान की बात होती है, तो अटल जी की सरकार का जिक्र जरूर होता है। शिक्षा को सर्वोच्च प्राथमिकता मानने वाले वाजपेयी जी ने एक ऐसे भारत का सपना देखा था, जहां हर व्यक्ति को आधुनिक और गुणवत्ता वाली शिक्षा मिले। वो चाहते थे भारत के वर्ग, यानि ओबीसी, एससी, एसटी, आदिवासी और महिला सभी के लिए शिक्षा सहज और सुलभ बने। उनकी सरकार ने देश की अर्थव्यवस्था को गति देने के लिए कई बड़े आर्थिक सुधार किए। इन सुधारों के कारण भाई-भतीजावाद में फंसी देश की अर्थव्यवस्था को नई गति मिली। उस दौर की सरकार के समय में जो नीतियां बनीं, उनका मूल उद्देश्य सामान्य मानवी के जीवन को बदलना ही रहा।
Makes360 - a digital consulting company in India, concludes its summer training 2k24

 

Our summer training program is a cornerstone of our commitment to developing the next generation of digital marketing leaders - Anish Kumar, CEO, Makes360”Makes360, a leading IT company headquartered in Mohali, Punjab specializing in digital marketing solutions, wrapped up its summer training on 12 July 2024. The training was initiated on 13 June 2024 and focused on the Advanced Digital Training & Business Leadership Mentorship Program. 

This training was conducted in association with Atal Community Innovation Centre (ACIC) RISE Association, supported by AIM, NITI Aayog (Govt. of India) and Chandigarh Group of College, Landran. It was managed successfully by Makes360’s team. 100+ students became a part of the training that went on for one month. The curriculum included 6 specialized headships delivered by the CEO and co-founder of Makes360, Anish Kumar. 

The students who demonstrated remarkable skills and achievements were felicitated with trophies and certificates by honorable deputies of Chandigarh Group of Colleges and ACIC RISE. Dr. P. N. Hrisheekesha (Campus Director, CGC), Dr. Ruchi Singla (Director Research, ACIC RISE), Dr. Rajdeep Singh (Executive Director, CEC), Dr. Amandeep Kaur (HOD, IT), Dr. Palki Sahib Kaur (Executive Director, CCT) was present as a guest on the event.

The awarded students Tamanna Aggarwal (B.tech, AI-ML, CEC - Best Coordinator), Ankita (B.tech, CSE, COE - Best Achiever), Shikha (B.tech, CSE, CEC - 100% Attendance), Ayush Singh (B.tech, AI-ML, CEC - Best Achiever), Beerpal Singh (UIS Dept. of Mathematics, Chandigarh University - Best Achiever), Aryan Raj (B.tech, CSE, CEC - Best Achiever), Vivek Negi (B.tech, CSE, CEC - Best Achiever), and Shridhar Kumar (B.tech, IT, CEC - Best Coordinator) showed dedication to learning and exceptional performance during the training.

Being the founder and CEO of a Digital Service Providing Company, Makes360, Anish Kumar impressed everyone with his captivating keynote speech. Subsequently, the leadership of the training program together with commitment to encouraging digital innovation has been mainly from him. 

"This past month has been quite productive for all of our students and we want to thank you for your hard work and diligence. This is an exceptional program that has proved the impact of digital education on transforming lives and businesses. We are cheerful to see superb performances by our students, I’m also thankful to ACIC Rise and CGC Landran for trusting in our company" said Anish Kumar, CEO and co-founder of Makes360.

Makes360 is an IT company that provides business consulting, information technology, and outsourcing services to B2B and B2C clients across 54+ industries across the globe. Established in 2018, the company focuses on helping clients enhance their online presence and achieve their marketing goals.

Website :- https://www.makes360.com/services/

Akshat Nayyar, CEO Truemeds, shares How E-Pharmacies are Reshaping Medication Habits

Imagine a world where a few taps on your smartphone help you manage your health. Online or e-pharmacies are making this dream a reality by reshaping how we approach and understand our health and medication habits. These online platforms are more than just convenient storefronts — they are leading a revolution in healthcare accessibility and consumer education.

Gone are the days when consumers blindly followed medications based on prescriptions, with little knowledge or control over the process. Thanks to the wealth of information available online, from blogs to review platforms, we are far more aware now of our rights as consumers and are making informed choices about everything - from the food we eat to the skincare products we use. A recently found study by Bain & Co. on Asia-Pacific Front Line of Healthcare 2024 also states that Healthcare is no longer a passive experience: Consumers are taking charge of their health, are demanding a better experience, and are willing to invest in wellness.

The COVID-19 pandemic was a catalyst for this shift, forcing people to embrace e-commerce and online services out of sheer necessity. Even in smaller cities and suburbs, where the adoption of e-commerce might have otherwise been slower, the pandemic drove people to explore online shopping for essentials, including medicines. This shift towards e-pharmacies has continued to spike as these platforms bridge the gap in accessible and affordable healthcare. 

In fact, the Bain & Co. study also found that consumers desire a single touchpoint to manage their health and are increasingly placing high trust in primary care providers and other alternative sites of care like pharmacies and digital health. While face-to-face interactions are more commonly preferred, the pandemic has increased acceptance of virtual touchpoints. 

In India alone, there are over 50 e-pharmacy startups, serving around 5 million users every month with reasonably priced, high-quality medicines. The growth is fueled by rising education levels, increased consumer rights awareness, higher disposable incomes, and urbanization-driven lifestyle changes. Key to this is digital inclusion, as the internet and smartphones have reached a significant portion of the population. 

Why are e-pharmacies trending?

In today's fast-paced world, the hassle of traditional medication procurement processes—from scheduling appointments to purchasing medicines—is becoming increasingly unappealing. 

The biggest draw of e-pharmacies lies in the convenience they offer. One can easily track past orders, further helping them to take control of their healthcare needs from the comfort of their homes. Hence, offering “one-stop shop” solutions for all their needs, leveraging tech capabilities for better patient engagement. Pricing information is readily available on their platforms, and customers can compare options and choose the most affordable solutions for their prescription needs. This newfound transparency helps users make informed decisions and access the best deals. The survey also stated that telehealth led to major saving of healthcare costs due to the early triage and steerage care coupled with the low price point and pharmacy attach rate for teleconsultation compared to in-person primary consultation.

Future outlook

As the Indian government continues to push for digital transformation in the healthcare sector, e-pharmacies are likely to receive more support and recognition in the future.

Akasht Nayyar, CEO Truemeds, shares How E-Pharmacies are Reshaping Medication Habits

 

Imagine a world where a few taps on your smartphone help you manage your health. Online or e-pharmacies are making this dream a reality by reshaping how we approach and understand our health and medication habits. These online platforms are more than just convenient storefronts — they are leading a revolution in healthcare accessibility and consumer education.

Gone are the days when consumers blindly followed medications based on prescriptions, with little knowledge or control over the process. Thanks to the wealth of information available online, from blogs to review platforms, we are far more aware now of our rights as consumers and are making informed choices about everything - from the food we eat to the skincare products we use. A recently found study by Bain & Co. on Asia-Pacific Front Line of Healthcare 2024 also states that Healthcare is no longer a passive experience: Consumers are taking charge of their health, are demanding a better experience, and are willing to invest in wellness.

The COVID-19 pandemic was a catalyst for this shift, forcing people to embrace e-commerce and online services out of sheer necessity. Even in smaller cities and suburbs, where the adoption of e-commerce might have otherwise been slower, the pandemic drove people to explore online shopping for essentials, including medicines. This shift towards e-pharmacies has continued to spike as these platforms bridge the gap in accessible and affordable healthcare. 

In fact, the Bain & Co. study also found that consumers desire a single touchpoint to manage their health and are increasingly placing high trust in primary care providers and other alternative sites of care like pharmacies and digital health. While face-to-face interactions are more commonly preferred, the pandemic has increased acceptance of virtual touchpoints. 

In India alone, there are over 50 e-pharmacy startups, serving around 5 million users every month with reasonably priced, high-quality medicines. The growth is fueled by rising education levels, increased consumer rights awareness, higher disposable incomes, and urbanization-driven lifestyle changes. Key to this is digital inclusion, as the internet and smartphones have reached a significant portion of the population. 

Why are e-pharmacies trending?

In today's fast-paced world, the hassle of traditional medication procurement processes—from scheduling appointments to purchasing medicines—is becoming increasingly unappealing. 

The biggest draw of e-pharmacies lies in the convenience they offer. One can easily track past orders, further helping them to take control of their healthcare needs from the comfort of their homes. Hence, offering “one-stop shop” solutions for all their needs, leveraging tech capabilities for better patient engagement. Pricing information is readily available on their platforms, and customers can compare options and choose the most affordable solutions for their prescription needs. This newfound transparency helps users make informed decisions and access the best deals. The survey also stated that telehealth led to major saving of healthcare costs due to the early triage and steerage care coupled with the low price point and pharmacy attach rate for teleconsultation compared to in-person primary consultation.

Future outlook

As the Indian government continues to push for digital transformation in the healthcare sector, e-pharmacies are likely to receive more support and recognition in the future

झारखंड में भीषण गर्मी को देखते हुए KG से 8 तक की कक्षाए अगले आदेश तक के लिए स्थगित रहेगी

रांची : झारखंड राज्य में अत्यधिक गर्मी व लू के कारण स्कूली छात्रों के स्वास्थ्य पर पड़ने वाले प्रतिकूल प्रभाव की आशंका से राज्य की KG से 8 तक की कक्षाएं अगले आदेश तक स्थगित रहेगी।

राज्य में संचालित सभी सरकारी, गैर सरकारी, सहायता प्राप्त व निजी विद्यालयों की KG से 8 तक की कक्षाएं अगले आदेश तक स्थगित रहेगी। वही सरकारी गैर सरकारी सहायता प्राप्त गैर सहायता प्राप्त विद्यालयों के शिक्षक व शिक्षकेतर कर्मियों पर यह आदेश लागू नहीं होगा।

 ग्रीष्मावकाश के लिए अलग से आदेश जारी किया जाएगा। ये शिक्षक शिक्षकेतर कर्मी अपने निर्धारित समय पर विद्यालय आएंगे और कार्यों का निर्वहन करेंगे। वही सभी प्रकार के आवासीय विद्यालय पूर्व की भांति यथासंभव संचालित रहेगी।

शिक्षकों को यह कार्य करने का आदेश दिया गया

• कक्षा 1 से 7 तक की वार्षिक परीक्षा की उत्तर पुस्तिकाओं का मूल्यांकन करते हुए परीक्षाफल प्रकाशन, रिपोर्ट कार्ड की तैयारी, छात्रवार विद्यार्थियों के प्राप्तांक को ई-विद्यावाहिनी में ऑनलाईन प्रविष्टि करने का कार्य पूर्ण करेंगे।

• यू-डाईस प्लस में विद्यार्थियों के आंकड़ों की शत-प्रतिशत प्रविष्टि का कार्य पूर्ण करेंगे।

• विद्यालय के पुस्तकालय में उपलब्ध पुस्तकों की Cataloging करते हुए इसे संधारित करना सुनिश्चित करेंगे।

• विद्यालय के सभी प्रकार के पंजी, बैंक पासबुक, कैशबुक इत्यादि का अद्यतन संधारण करेंगे।

• शैक्षणिक सत्र-2024-25 के लिए आने वाले विद्यार्थियों का नामांकन का कार्य करेंगे।

 कक्षा 9 से ऊपर की कक्षाएं सुबह 7 बजे से 11.30 बजे तक संचालित की जाएगी। इस अवधि में प्रार्थना सभा या खेलकूद एवं अन्य आउटडोर गतिविधियां संचालित नहीं की जाएगी।

Kragbuzz Retail Unveils Flagship Store in Noida, Welcomes Distinguished Guests.

 

In a momentous event that marked the convergence of sports enthusiasts, industry leaders, and celebrities, Kragbuzz Retail proudly inaugurated its flagship store in Noida. The grand opening ceremony, held from April 19th to April 21st, saw the unveiling of a meticulously curated space dedicated to providing athletes of all levels with access to top-notch gear, apparel, and equipment.

The Kragbuzz Retail main shop, located in a bustling sector of Noida, covers three sprawling floors and exudes an air of athletic excellence and creativity. From quality clothes and accessories to cutting-edge sports equipment, the shop provides a wide choice of items sourced from top companies throughout the world. With a solid dedication to quality and client happiness, Kragbuzz Retail aims to redefine the sporting experience for enthusiasts and professionals alike.

Kragbuzz Retail's goal is based on a passion for sports and a commitment to excellence. Mr. Arjun Gupta founded the business, which reflects the result of years of industry experience and a constant quest for quality. Kragbuzz Retail aspires to be more than just a retail space, with a clear focus on providing athletes with access to the highest quality gear. It wants to be a sanctuary for sports enthusiasts, a place where they can find inspiration, guidance, and the tools they need to excel in their respective fields.

Kragbuzz Retail's opening ceremony was attended by a remarkable group of guests, each of whom brought their own distinct viewpoint and skills to the occasion. Mr. Rajat Sharma, Chairman and Editor in Chief of India TV, led the opening activities. Mr. Rohan Jaitley, President of the DDCA, Mr. CK Khanna, Former President of the BCCI, and Mr. Madan Lal, former Indian cricketer and World Cup champion from 1983, all joined him.

Mr. Vijay Singh, IPS - Jt.CP Delhi Police, and Mr. Santosh K Rai, IAS - Secretary (Home), Delhi Government, Mr. Rakesh Paweriya, IPS - DCP, Delhi Police, Mr. Lakshay Singhal, IAS - DM-South West Delhi, Mr. Gangadhar Panda, IRS - Addl Director-General, DGFT, and Mr. Bhavya Bishnoi - MLA, Haryana Legislative Assembly, whose presence highlighted the significance of Kragbuzz Retail's opening. Also in attendance were significant individuals from the media profession, including Mr. Vijay Lokapally, senior journalist, Mr. Aniket Mishra, senior journalist specializing in FIFA, and Mr. Shankar Singh, journalist.

The event also included prominent sports celebrities such as Mr. Parvinder Awana, a former Indian cricketer, and Mr. Smit Singh, an international shooter, who supported Kragbuzz Retail's objective to promote athletic achievement and innovation.

Mr. Manoj Mittal, Chairman, Alumni Management Company; Mr. Pawan Gulati, Treasurer, DDCA; and Mr. Shyam Sharma, Director, Executive Member of DDCA and Delhi High Court Bar Association, are among the other important visitors who attended. In addition, Mr. Rajesh Mishra, Secretary of the Delhi Bar Council, Mr. Anmol Nohria, Magistrate of Karkardooma Court, and world-renowned astrologer Mr. Nitin Kashyap were in attendance.

In his opening remarks, Mr. Arjun Gupta thanked the distinguished guests for their attendance and stressed Kragbuzz Retail's dedication to offering sports fanatics outstanding quality and service. He also discussed the store's future plans, emphasizing its position as a catalyst for the growth and development of the local athletic community.

As the three-day event came to a conclusion, guests left full of enthusiasm and expectation for the future of sports retail in Noida. With its flagship shop now available to the public, Kragbuzz Retail hopes to serve as a source of inspiration and excellence for athletes of all levels, empowering them to achieve new heights of accomplishment.

To connect or make a purchase with Kragbuzz, click on the link provided below.

Website : https://kragbuzz.com/ 

                https://kragbuzzretail.com/  

Instagram : https://www.instagram.com/kragbuzzretailstore?igsh=YzljYTk1ODg3Zg==  

Unveiling the Cosmic Wisdom: The Journey of Ritika Bajaj - Astrologer, Numerologist, and Akashic Record Reader

In the realm where the celestial meets the terrestrial, there exists a luminous soul named Ritika Bajaj, whose journey is an odyssey through the cosmic mysteries of astrology, numerology, and Akashic record reading. With her profound insights and intuitive wisdom, Ritika traverses the ethereal landscapes of destiny, offering seekers a glimpse into the intricate tapestry of their lives.

Ritika's fascination with the esoteric arts began at a young age, as she found solace in the silent whispers of the stars and the profound symbolism of numbers. Her journey into the mystical realms of astrology, numerology, and Akashic record reading was not merely an intellectual pursuit but a calling of the soul, guiding her towards a deeper understanding of the universe and her place within it.

As an astrologer, Ritika possesses a rare gift for deciphering the cosmic dance of planets and stars. Through meticulous chart readings and intuitive insights, she unveils the hidden patterns of destiny, illuminating the path ahead with clarity and purpose. Ritika's approach to astrology is not fatalistic but empowering, emphasizing the power of self-awareness and conscious choice in shaping one's destiny.

In the realm of numerology, Ritika's expertise lies in decoding the mystical language of numbers. With a keen eye for numerical patterns and their spiritual significance, she unravels the secrets of one's name and birthdate, revealing the underlying currents of energy and vibration that shape one's life. Ritika's numerological readings are like keys that unlock the door to self-discovery, offering profound insights into personality traits, karmic lessons, and soul's purpose.

Beyond the realms of astrology and numerology, Ritika delves into the sacred mysteries of the Akashic records. As an Akashic record reader, she serves as a bridge between the earthly realm and the cosmic archives that hold the memories of all existence. With deep reverence and spiritual attunement, Ritika accesses the Akashic records to retrieve soul-level insights, past-life experiences, and karmic imprints that illuminate the soul's journey through time.

What sets Ritika apart is not just her knowledge and expertise but her compassionate heart and profound empathy. She approaches each consultation with humility and grace, creating a safe space for seekers to explore their deepest truths and vulnerabilities. Ritika's guidance is not prescriptive but nurturing, empowering individuals to embrace their authentic selves and live in alignment with their highest purpose.

In a world that often feels fragmented and chaotic, Ritika's work serves as a beacon of light and wisdom. Through her astrology, numerology, and Akashic record readings, she reminds us of the interconnectedness of all things and the eternal dance of creation. Ritika's journey is not just about unraveling the mysteries of the cosmos but about helping others awaken to the divinity that resides within them.

As we journey alongside Ritika Bajaj, we are invited to embark on a quest for self-discovery and spiritual awakening. Through the sacred arts of astrology, numerology, and Akashic record reading, we reclaim our place in the cosmic symphony and embrace the infinite possibilities that await us. In Ritika's presence, we are reminded that we are not merely observers but active participants in the grand tapestry of existence, each thread woven with purpose and meaning.

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आज प्रदोष व्रत,यह दिन महादेव को है समर्पित,इस दिन सुख समृद्धि के लिए लोग रखते हैं ब्रत

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साहिबगंज नींबू पहाड़ में हुए अवैध खनन की जांच को लेकर फिर एक बार सीबीआई की दविश।

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