लोकगीत गीतिका पद्म विभूषण शारदा सिन्हा के निधन पर विंध्य क्षेत्र में शोक, साहित्यिक लोगों ने दी श्रद्धांजलि
मीरजापुर। लोकगीतों की ख्यातिलब्ध गायिका स्वर कोकिला पद्म विभूषण शारदा सिन्हा के निधन से आहत जनपद मीरजापुर के साहित्यकारों ने शोकसभा आयोजित कर उन्हें भावभीनी श्रद्धांजलि अर्पित की।
साहित्यकार भोलानाथ कुशवाहा ने शारदा सिन्हा के ऩिधन को लोक जीवन की अपूरणीय क्षति बताया। साहित्यकार गणेश गंभीर ने कहा कि छठ मईया के गीतों की अनन्य लोक गायिका शारदा सिन्हा छठ पर्व पर ही प्रयाण कर गयीं, यह दैवीय कृपा ही है। साहित्यकार लल्लू तिवारी ने कहा कि हिन्दी, मगही, भोजपुरी और मैथिली की विश्व प्रसिद्ध गायिका श्रीमती सिन्हा के निधन से हम सभी आहत हैं।
अरविंद अवस्थी ने कहा कि शारदा सिन्हा ने फिल्मों में भी अपनी गायकी से देश का नाम रोशन किया। उनके गीत भविष्य में लंबे समय तक गुनगुनाये जाते रहेंगे। केदार नाथ सविता ने कहा कि अपने गीतों से जनमानस को भावुक कर देने वाली गायिका शारदा सिन्हा को हमेशा याद किया जायेगा।
श्रद्धांजलि देने वाले अन्य लोगों में सर्वश्री श्याम अचल, पूजा यादव, नन्दिनी वर्मा, गुमनाम मिर्जापुरी आदि प्रमुख थे। इसी क्रम में
लालगंज विकास खंड क्षेत्र के गुरुकुलम कोटा शिव प्रताप सिंह में स्थित यूओ कान्वेंट स्कूल के बच्चों ने बुधवार को दोपहर शोक सभा का आयोजन कर बिहार की स्वर कोकिला एवं लोक गायिका शारदा सिन्हा के निधन पर शोक व्यक्त करते हुए 2 मिनट का मौन रखा। यूओ कान्वेंट स्कूल के प्रबंधक ओमकार नाथ पांडे ने कहा कि शारदा सिन्हा को छठ एवं लोकगीतों की लिए जाना जाता है। शारदा सिन्हा को पद्म भूषण और पद्मश्री से सम्मानित किया जा चुका है।
शारदा सिन्हा के निधन से गहरा दुःख हुआ है और आस्था के महापर्व छठ से जुड़े उनके सुमधुर गीतों की गूंज सदैव बनी रहेगी। छात्रा अंजलि के द्वारा चित्र आरेखन कर विनम्र श्रद्धांजलि अर्पित की गई।
Nov 06 2024, 17:31