आज मंत्री बन्ना गुप्ता ने बतौर कांग्रेस प्रत्याशी जमशेदपुर पश्चिमी विधानसभा सीट से नामांकन पत्र दाखिल किया.

झा.डेस्क

जमशेदपुर : मंत्री बन्ना गुप्ता ने बतौर कांग्रेस प्रत्याशी जमशेदपुर पश्चिमी विधानसभा सीट से बृहस्पतिवार को अपना नामांकन पत्र दाखिल किया. 

सूत्रों ने बताया कि झामुमो, कांग्रेस और भाजपा के कुल 51 नेता आज अपना नामांकन दाखिल करेंगे. झारखंड विधानसभा चुनाव के लिए मतदान दो चरणों में 13 नवंबर और 20 नवंबर को होगा जबकि 23 नवंबर को नतीजे घोषित किए जाएंगे. 

चुनाव के पहले चरण के लिए 18 अक्टूबर से नामांकन प्रक्रिया शुरू हुई थी और यह 25 अक्टूबर को समाप्त होगी, जबकि दूसरे चरण के लिए नामांकन प्रक्रिया 22 अक्टूबर से शुरू हुई और 29 अक्टूबर तक जारी रहेगी.

कांग्रेस प्रत्याशी डॉ अजय कुमार ने जमशेदपुर पूर्वी विधानसभा सीट से किया नामांकन दर्ज़

झारखंड डेस्क 

जमशेदपुर :कांग्रेस प्रत्याशी डॉ अजय कुमार ने जमशेदपुर पूर्वी विधानसभा सीट से बृहस्पतिवार को अपना नामांकन पत्र दाखिल किया. सूत्रों ने बताया कि झामुमो, कांग्रेस और भाजपा के कुल 51 नेता आज अपना नामांकन दाखिल करेंगे. 

झारखंड विधानसभा चुनाव के लिए मतदान दो चरणों में 13 नवंबर और 20 नवंबर को होगा जबकि 23 नवंबर को नतीजे घोषित किए जाएंगे. चुनाव के पहले चरण के लिए 18 अक्टूबर से नामांकन प्रक्रिया शुरू हुई थी और यह 25 अक्टूबर को समाप्त होगी, जबकि दूसरे चरण के लिए नामांकन प्रक्रिया 22 अक्टूबर से शुरू हुई और 29 अक्टूबर तक जारी रहेगी.

झारखंड मुक्ति मोर्चा की विधायक कल्पना सोरेन ने गांडेय विधानसभा सीट से अपना नामांकन पत्र दाखिल किया.

झा. डेस्क 

झारखंड मुक्ति मोर्चा (झामुमो) की विधायक कल्पना सोरेन ने गांडेय विधानसभा सीट से बृहस्पतिवार को अपना नामांकन पत्र दाखिल किया. 

कल्पना सोरेन से सोशल मीडिया मंच ‘एक्स’ पर एक पोस्ट में बताया, ‘‘झारखंड विधानसभा चुनाव में गांडेय निर्वाचन क्षेत्र की जनता की सेवा करने के लिए आज मैंने झामुमो प्रत्याशी के रूप में अपना नामांकन पत्र दाखिल किया. 

मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन की पत्नी कल्पना सोरेन ने चार जून को गांडेय सीट पर हुए उपचुनाव में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के अपने प्रतिद्वंद्वी दिलीप कुमार वर्मा को 27,149 मतों से हराया था. झामुमो विधायक सरफराज अहमद द्वारा इस्तीफा दिए जाने के बाद यह सीट खाली हो गई थी.

झारखंड विधानसभा चुनाव के लिए मतदान दो चरणों में 13 नवंबर और 20 नवंबर को होगा जबकि 23 नवंबर को नतीजे घोषित किए जाएंगे. चुनाव के पहले चरण के लिए 18 अक्टूबर से नामांकन प्रक्रिया शुरू हुई थी और यह 25 अक्टूबर को समाप्त होगी, जबकि दूसरे चरण के लिए नामांकन प्रक्रिया 22 अक्टूबर से शुरू हुई और 29 अक्टूबर तक जारी रहेगी.

जदयू प्रत्याशी सरयू राय ने जमशेदपुर पश्चिमी विधानसभा सीट से अपना नामांकन पत्र दाखिल किया.

झा. डेस्क 

जदयू प्रत्याशी सरयू राय ने जमशेदपुर पश्चिमी विधानसभा सीट से बृहस्पतिवार को अपना नामांकन पत्र दाखिल किया. 

सूत्रों ने बताया कि कांग्रेस और भाजपा के कुल 51 नेता आज अपना नामांकन दाखिल करेंगे. झारखंड विधानसभा चुनाव के लिए मतदान दो चरणों में 13 नवंबर और 20 नवंबर को होगा जबकि 23 नवंबर को नतीजे घोषित किए जाएंगे. 

चुनाव के पहले चरण के लिए 18 अक्टूबर से नामांकन प्रक्रिया शुरू हुई थी और यह 25 अक्टूबर को समाप्त होगी, जबकि दूसरे चरण के लिए नामांकन प्रक्रिया 22 अक्टूबर से शुरू हुई और 29 अक्टूबर तक जारी रहेगी.

बरहेट से सीएम हेमंत सोरेन और गांडेय से कल्पना सोरेन ने किया नामांकन, सोरेन बरहेट से 2014 से हैं विधायक


झारखंड डेस्क 

झारखंड के सीएम हेमंत सोरेन ने बरहेट विधानसभा सीट से आज अपना नामांकन दाखिल कर दिया. झारखंड में कल नामांकन दाखिल करने की आखिरी तारीख है. 

जेएमएम के कई प्रत्याशियों ने आज नामांकन दाखिल किया है जिसमें हेमंत सोरेन की पत्नी कल्पना सोरेन भी शामिल हैं. उन्होंने गांडेय से नामांकन दाखिल किया है.

नामांकन दाखिल करने से एक दिन पहले हेमंत सोरेन और कल्पना सोरेन ने 24 अक्टूबर को शिबू सोरेन का आशीर्वाद लिया और परिवार के अन्य सदस्यों से भी मुलाकात की थी. 49 वर्षीय हेमंत सोरेन झारखंड में तीन बार सीएम पद की शपथ ले चुके हैं. वह 2014 से बरहेट से विधायक हैं.

आज मांडर से भाजपा प्रत्याशी जीतू चरण राम और कांके से सन्नी टोप्पो ने किया नामांकन

आज मांडर और कांके से अपने अपने समर्थकों के साथ नामांकन करने के लिए के लिए भाजपा प्रत्याशी जीतू चरण राम और सन्नी टोप्पो पहुंचे.उनके साथ समर्थकों क़ी भीड़ थी.

हटिया विधानसभा सीट से भाजपा उम्मीदवार नवीन जायसवाल अपने समर्थकों के साथ समहाराणालय पहुंचे.

रांची: हटिया विधानसभा सीट से भाजपा उम्मीदवार नवीन जायसवाल अपने समर्थकों के साथ समहाराणालय पहुंचे. वे आज अपना नामांकन दर्ज़ करेंगे. पुरे आत्म विश्वास के साथ उन्होंने कहा क़ी जनता इस बाऱ मोदी जी के. काम और भरष्ट्राचार के बिरुद्ध अपना जनादेश देगी

नेहा तिर्की पहुंची नामांकन दाखिल करने,जुटी समर्थकों क़ी जभीड़

मांडर विधानसभा क्षेत्र से कांग्रेस प्रत्याशी शिल्पी नेहा तिर्की नामांकन पत्र भरने अपने समर्थकों के साथ पहुंची. पहले बापू वाटिका से अपने हजारों समर्थकों के साथ जुटी.उसके बाद शिल्पी नेहा तिर्की अपने कार्यकर्ताओं के हौसला अफजाई करते हुए आगे बढ़ी.उनके साथ समर्थकों का जन सैलाब उमड़ पड़ा वे आज नामांकन दर्ज़ करेगी. इस अवसर पर उन्होंने कहा जनता का सहयोग और समर्थन हमारे साथ हैं.

       

विधानसभ चुनाव-2024 को लेकर अंतरर्राज्यीय बॉर्डर सीलिंग एवं विधि व्यवस्था संबंधी बैठक देवघर में हुई, अपराधियों के सूची का किया गया आदान प्रदान

* झारखंड डेस्क विधानसभा आम चुनाव-2024 को लेकर अंतरर्राज्यीय बॉर्डर सीलिंग एवं विधि व्यवस्था संबंधी बैठक बुधवार को देवघर परिसदन में हुई। बैठक की अध्यक्षता संथाल परगना आयुक्त लालचन्द डाडेल ने की। देवघर जिला निर्वाचन पदाधिकारी सह उपायुक्त विशाल सागर ने सभी वरीय अधिकारियों, जिला के उपायुक्त व पुलिस अधीक्षक को बताया कि यह बैठक अंतरर्राज्यीय व अंतर जिला की बैठक विधानसभा आम चुनाव में सुरक्षा व्यवस्था को दुरूस्थ व शांतिपूर्ण मतदान को लेकर मुख्य रूप से आयोजित की गयी है। इसके अलावे बैठक के दौरान भागलपुर आयुक्त व मुंगेर आयुक्त वीडियो कॉन्फ्रेसिंग के माध्यम से बैठक में शामिल हुए। इसके अलावे बैठक में सीमावर्ती वाले इलाकों में पड़ने वाले बूथों पर विशेष चौकसी बरतने, चेकनांका पर विशेष चेकिंग अभियान चलाने, बोर्डर वाले जंगली क्षेत्रों में संयुक्त रूप से एलआरपी चलाने, सूचनाओं का आदान प्रदान करने सहित कई बिन्दुओं पर विस्तृत चर्चा की गई। साथ ही वैसे अपराधियों की सूची का आदान प्रदान किया गया, जो अपराध एक राज्य के क्षेत्र में कर दूसरे राज्य में भागे हुए हैं। वैसे अपराधियों को गिरफ्तार करने को लेकर अभियान चलाने का भी निर्णय लिया गया। विधानसभा आम चुनाव को लेकर सीमावर्ती क्षेत्रों की सुरक्षा व्यवस्था पर बिन्दुवार चर्चा की गयी, ताकि विधि व्यवस्था और सुरक्षा व्यवस्था के व्यापक इंतजाम किये जा सके। इसके अलावे चुनाव के दरम्यान विभिन्न सीमावर्ती के जिलों के बॉडर पर क्या समस्याएं है एवं इसके निदान पर बिन्दूवार चर्चा करते हुए सीमावर्ती इलाकों में विशेष चौकसी भी बरती जाएगी। इसके अलावे चुनाव के दौरान अशांति फैलाने वाले असमाजिक तत्वों पर सयुंक्त रूप से कार्रवाई की जाने की बात कही गयी। चेकपोस्टों पर सीसीटीवी कैमरें का अधिष्ठापन व एकसाइज चेकपोस्ट बनाये जाने के अलावा नक्सल प्रभावित क्षेत्रों में सुरक्षा के व्यापक इंतजाम के साथ नक्‍सली गतिविधियों पर पैनी नजर रखने पर विस्तृत चर्चा की गयी। बैठक के दौरान संथाल परगना आयुक्त लालचन्द डाडेल ने सोशल मीडिया निगरानी के अलावा संचार की व्यवस्था के साथ आपसी समन्वय स्थापित करते हुए कार्य करने की बात कही। इसके अलावे उन्होंने बिहार राज्य में शराबबंदी के मद्देनजर आवश्यक कार्रवाई करने की बात कही। साथ हीं उन्होंने नशीली पदार्थ व जाली नोट जैसे तस्करी पर सख्ती से निपटने की बात कही। साथ ही अपराधियों व अभियुक्तों के सीमावर्ती दूसरे जिले में आवागमन पर रोक के साथ ऐसे असामाजिक तत्वों का ब्यौरा साझा करने की बात कही गयी। इसके अलावा मतदान के 48 घंटा पूर्व से हीं चुनाव क्षेत्र में बाहरी मतदाता एवं बाहरी नेता को क्षेत्र से बाहर रखने के साथ-साथ बॉडर सिलिंग पर चर्चा की गयी। इसके अलावे विधानसभा चुनाव के दरम्यान सोषल मीडिया पर विशेष निगरानी के साथ शांतिपूर्ण व भयमुक्त वातारण में चुनाव सम्पन्न कराने को लेकर विभिन्न बिन्दुओं पर चर्चा की गयी, ताकि शांतिपूर्ण, निष्पक्ष व भयमुक्त माहौल में निर्वाचन से जुड़े कार्यों को सम्पन्न कराया जा सके। संथाल परगना आईजी, संथाल परगना डीआईजी, डीआईजी भागलपुर, उपायुक्त देवघर, भागलपुर जिला दंडाधिकारी, पुलिस अधीक्षक दुमका, पुलिस अधीक्षक देवघर, पुलिस अधीक्षक गोड्डा, पुलिस अधीक्षक बांका, उप विकास आयुक्त गोड्डा, आईटीडीए निदेशक दुमका, उप निर्वाचन पदाधिकरी, एडीएम जमुई, डीएसपी जमुई, बांका डीएसपी, जिला जनसम्पर्क पदाधिकारी, प्रभारी पदाधिकारी गोपनीय शाखा, सहायक जनसम्पर्क पदाधिकारी के साथ-साथ संबंधित विभागों के अधिकारी, पुलिस पदाधिकारी आदि उपस्थित थे।
भारत के साथ विवाद के बीच जस्टिन ट्रूडो को अपनी ही पार्टी के सांसदों ने घेरा, मांगा इस्तीफा, 28 अक्टूबर की डेडलाइन*
#justin_trudeau_party_mps_give_him_deadline_to_resign
भारत और कनाडा में जारी कूटनीतिक विवाद के बीच प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो अपनी ही पार्टी में घिरते दिख रहे हैं। जस्टिन ट्रूडो ने सियासी जमीन मजबूत करने के फेर में भारत से तो बिगाड़ कर ही डाली। हालांकि, जस्टिन ट्रूडो की घरेलू और विदेशी, दोनों मोर्चों पर परेशानी बढ़ती ही जा रही है। उनकी अपनी ही पार्टी लिबरल के सांसद अब उनसे चौथी बार चुनाव न लड़ने का आग्रह कर रहे हैं। पार्टी के सांसदों ने उन्हें अपनी निर्णय लेने के लिए 28 अक्टूबर 2024 तक का समय सीमा जारी किया है।राजनीतिक उथल-पुथल ऐसे समय में हो रही है, जब सांसद ट्रूडो के नेतृत्व पर सवाल उठा रहे हैं। समाचार एजेंसी एपी की रिपोर्ट के अनुसार, कुछ लिबरल सांसदों ने जस्टिन ट्रूडो को पद छोड़ने के लिए 28 अक्टूबर तक की समय सीमा दी है। सांसदों ने कहा है कि अगर ट्रूडो टाइमलाइन के भीतर पद नहीं छोड़ते हैं तो उन्हें अंजाम के लिए तैयार करना चाहिए। लिबरल सांसदों ने बुधवार को पार्टी की कॉकस मीटिंग के दौरान ट्रूडो के खिलाफ अपनी नाराजगी जाहिर की। रेडियो-कनाडा ने दो सूत्रों के हवाले से बताया है कि 20 सांसदों ने ट्रूडो को चुनाव से पहले पद से हटने के लिए कहने वाले एक पत्र पर हस्ताक्षर किए हैं। कनाडा के हाउस ऑफ कॉमन्स में 153 लिबरल सांसद हैं। कनाडा में जस्टिन ट्रूडो और उनकी पार्टी की लोकप्रियता में भारी गिरावट आई है। यही वजह है कि ट्रूडो पर प्रधानमंत्री पद से इस्तीफा देने का दबाव डाला जा रहा है। हाल ही में जस्टिन ट्रूडो ने अपनी पार्टी के नेताओं के साथ बैठक भी की थी। इस बैठक के बाद ट्रूडो ने कहा था कि लिबरल पार्टी मजबूत और एकजुट है, लेकिन पार्टी के ही 20 सांसदों ने अलग कहानी बताई। दरअसल 20 सांसदों ने एक चिट्ठी लिखकर ट्रूडो से पीएम पद से इस्तीफा देने की मांग की है। इन सांसदों ने अगले चुनाव से पहले ही ट्रूडो से इस्तीफा मांगा है। मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, कनाडा की लिबरल पार्टी के एक सासंद केन मैकडोनाल्ड का कहना है कि 'उन्हें सुनना शुरू करना चाहिए और लोगों की बातें सुननी चाहिए।' केर मैकडोनाल्ड भी उन 20 सांसदों में शामिल हैं, जिन्होंने ट्रूडो को पद से हटाने की मांग को लेकर चिट्ठी लिखी है। मैकडोनाल्ड ने कहा कि वह अगला चुनाव नहीं लड़ेंगे। इसकी वजह बताते हुए उन्होंने कहा कि इसकी वजह लिबरल पार्टी की गिरती लोकप्रियता है। वहीं, ब्रिटिश कोलंबिया के सांसद पैट्रिक वीलर ने ट्रूडो के इस्तीफे के लिए तर्क देते हुए अमेरिका का उदाहरण दिया, जहां बाइडन के प्रेसिडेंशियल रेस के बाहर होने के बाद डेमोक्रेट्स को बढ़त मिली और सुझाव दिया कि कनाडा में भी लिबरल्स को इसी तरह वापसी देखने को मिल सकती है। पिछले 100 सालों में कोई भी कनाडाई प्रधानमंत्री लगातार चार बार चुनाव नहीं जीत पाया है। ट्रूडो की लिबरल पार्टी को हाल ही में टोरंटो और मॉन्ट्रियल के दो जिलों में हुए चुनाव में हार का सामना करना पड़ा, जिस वजह से अब पार्टी के भीतर ट्रूडो के नेतृत्व पर संदेह पैदा हो गया है। जस्टिस ट्रूडो ने अभी तक लिबरल सांसदों की ओर से दिए गए पत्र पर हस्ताक्षर नहीं किए हैं। हालांकि, प्रधानमंत्री ने कहा कि वह सांसदों की मांगों पर विचार करेंगे।