झारखंड कैबिनेट विस्तार में फसी झामुमो , जाने कौन मंत्री पद के रेस में है और कौन इससे बाहर
रांची : झारखंड में नेतृत्व परिवर्तन के बाद सीएम चंपाई सोरेन के कैबिनेट विस्तार को लेकर हो रहा है विवाद। मंत्री पद को लेकर सत्ता पक्ष में राजनीतिक सरगरमी तेज है। पहले 08 फरवरी को होने वाले शपथ ग्रहण समारोह को अपरिहार्य वजह बताकर 16 फरवरी तक के लिए टाल दिया गया है।
झामुमो और कांग्रेस के आठ मंत्रियों को चंपाई सोरेन की सरकार में जगह मिलना है।
झारखंड मुक्ति मोर्चा ही नही बल्कि कांग्रेस के अंदर भी विधायकों में मंत्री बनने की हिलकोरे मार रही है। जिस वजह से मंत्रिमंडल विस्तार का मामला अभी तक लटका है। कांग्रेस के कोटे से तीन मंत्रियों के लिए जगह तय है। कांग्रेस के अंदर मंत्री पद को लेकर तस्वीर साफ नहीं है। कांग्रेस आलाकमान पुराने चेहरे पर ही भरोसा करे या फिर नये को कमान दे, इसी पेच में फंसा है। प्रदेश के कुछ नेताओं का मानना है कि पांच-छह महीने के लिए पार्टी को किसी भी बदलाव की ओर नहीं जाना चाहिए।
वहीं हेमंत सोरेन सरकार में मंत्री रहे नेताओं ने दिल्ली दरबार तक अपनी बात पहुंचायी हैं।
इधर मंत्री पद को लेकर पार्टी के अंदर कई नामों पर चर्चा हो रही है. प्रदीप यादव, दीपिका पांडेय, पूर्णिमा नीरज सिंह, अनूप सिंह जैसे नेताओं की अपनी लॉबिंग है। इधर झामुमो कोटे से मंत्री पद के लिए बसंत साेरेन का नाम सबसे आगे हैं। सीता सोरने के नाम पर संशय है।
राजनीतिक सूत्रों के अनुसार शिबू सोरेन परिवार से दो लोगों को शायद ही कैबिनेट में जगह मिल पाये। तो वहीं उपमुख्यमंत्री स्टीफन मरांडी का भी नाम चर्चा में है। हेमंत सोरेन के काफी प्रिय विधायकों में से एक सुदिव्य कुमार सोनू का भी नाम इन दिनों चर्चा में है। झामुमो के पुराने नेता रहे विधायक मथुरा महतो तो कहते हैं उनकी इच्छा है कि पुराने चेहरे ही मंत्रिमंडल में हों लेकिन पूर्व में कृषि मंत्री रहे मथुरा महतो के दिल में क्या है, यह कोई नहीं जानता। झामुमो में मिथिलेश ठाकुर और जोबा मांझी का बर्थ सुरक्षित माना जा रहा है।
अब देखने वाली बात होगी कि 16 फरवरी को चंपई सोरेन सरकार के मंत्रिमंडल विस्तार में किनकी किनकी लॉटरी खुलती है। कौन मंत्री पद पर रहते है और कौन इससे पीछे छूट जाते हैं।
Feb 15 2024, 14:23