अगर आप के कुंडली में है दोष तो दोष निवारण के लिए करें ये उपाय..?
चंद्रमा दोष के लिए
ज्योतिष में चंद्रमा को मन का कारक माना जाता है। इसलिए कुंडली में यह दोष होने पर व्यक्ति को सर्दी-जुकाम या फिर पेट संबंधी समस्याओं के साथ धन हानि का सामना करना पड़ता है। चंद्र दोष को दूर करने के लिए पूर्णिमा के दिन चंद्र देव को अर्घ्य देने के साथ विधि-विधान से पूजा करें। इसके अलावा सफेद चीजों का दान करें। अनामिका अंगुली में सोमवार के दिन चार रती की मोती को चांदी की अंगूठी में पहन लें।
सूर्य दोष के लिए
कुंडली में सूर्य दोष होने पर नौकरी में बाधा, असाध्य रोगों का सामना करना पड़ता है। इस दोष से राहत पाने के लिए भगवान विष्णु के साथ सूर्य देव की पूजा करें। इसके साथ ही बहते जल में गुड़ प्रवाहित करें। रविवार के दिन दाएं हाथ की मध्यमा अंगुली में माणिक्य रत्न तांबे की अंगूठी में पहन लें।
मंगल दोष के लिए
कुंडली में मंगल दोष होने पर वैवाहिक जीवन में परेशानियां, भाई-बहन से अनबन, शादी में देरी होना आदि शामिल है। कुंडली के मंगल दोष को कम करने के लिए भगवान हनुमान जी की पूजा विधि-विधान से करें। इसके अलावा हनुमान चालीसा और बजरंग बाण का पाठ करें। मसूर, गुड़, शक्कर आदि का दान करें।
बुध दोष के लिए
कुंडली में बुध की स्थिति खराब होने पर तनाव में व्यक्ति रहता है। इसके अलावा दांत से जुड़े रोग होने की आशंका रहती है। धन हानि का होना आदि शामिल है। बुध दोष से छुटकारा पाने के लिए मां दुर्गा की पूजा करें। इसके साथ ही ऊँ ऐं ह्रीं क्लीं चामुण्डायै विच्चे मंत्र का 5 माला जाप करें। पूर्व दिशा की ओर लाल रंग का झंडा लगाएं। इसके साथ ही चने की दाल और चावल 100 ग्राम लेकर बहते पानी में प्रवाहित करें।
गुरु दोष के लिए
कुंडली में गुरु दोष होने पर करियर में बाधाएं उत्पन्न होती है। इसके अलावा जातक के ऊपर झूठे आरोप लगना और पिता को किसी तरह से हानि होना शामिल है। गुरु दोष से छुटकारा पाने के लिए बहती नदी में बादाम, तेल, नारियल आदि प्रवाहित करें। इसके अलावा रोजाना माथे में केसर का तिल लगाएं। इसके साथ ही पुखराज या फिर उसका उपरत्न सुनहला रत्न गुरुवार के दिन तर्जनी अंगुली में धारण कर लें।
शुक्र दोष के लिए
कुंडली में शुक्र दोष होने पर जातक को त्वचा संबंधी समस्याएं होती हैं। इसके अलावा राजनीति के क्षेत्र में हानि का सामना करना पड़ता है। वैवाहिक जीवन में भी किसी न किसी तरह का तनाव चलता रहता है। शुक्र दोष से राहत पाने के लिए मां लक्ष्मी की आराधना करें। इसके अलावा मां लक्ष्मी के मंदिर जाकर उन्हें कमल का फूल अर्पित करें और घी का दान दें। इसके साथ ही शुक्रवार के दिन कांसे का एक बर्तन मंदिर में दान दें।
शनि दोष के लिए
जिस जातक की कुंडली में शनि दोष होता है तो उसे धन हानि के साथ बनते-बनते काम बिगड़ जाना, पैतृक संपत्ति में हानि का भी सामना करना पड़ता है। शनि दोष से मुक्ति पाने के लिए भगवान शनि की आराधना करें। इसके अलावा शनिवार के दिन काले तिल, सरसों के तेल भगवान शनि को चढ़ाने के साथ दान करें। सुबह के समय पीपल की जड़ में जल चढ़ाएं और शाम को सरसों के तेल का दीपक जलाएं।
राहु दोष के लिए
राहु दोष के कारण व्यापार में लगातार घाटा, शारीरिक और मानसिक समस्याओं का सामना करना पड़ता है। राहु दोष से राहत पाने के लिए मां सरस्वती की आराधना करें। इसके अलावा राहु के मंत्र- ऊं राहु रां राहवे नम: का रोजाना 108 बार जाप करें। इसके अलावा एक तांबे के बर्तन में गेहूं और गुड़ भरकर बहते जल में प्रवाहित कर दें।
केतु दोष के लिए
कुंडली में केतु का दोष होने से बुरी संगत में पड़ के जातक धन हानि करता है। इसके अलावा संतान का भाग्योदय न होगा और शारीरिक समस्याओं का सामना करना आदि शामिल है। केतु दोष से छुटकारा पाने के लिए पीपल के पेड़ में जल चढ़ाना चाहिए। इसके साथ ही घर के मुख्य द्वार में दोनों ओर तांबे की कील लगा दें। इसके अलावा दूध, दही, चावल, मसूर की दाल आदि का दान करें।
Jul 23 2023, 09:08