जमीन घोटाला मामला:IAS छवि रंजन को ईडी ने 10 घंटे पूछताछ के बाद किया गिरफ्तार
रांची: आर्मी जमीन घोटाला मामले में आज ईडी ने रांची डीसी रहे आइएएस छवि रंजन से लगभग 10 घंटे पूछताछ की। इसके बाद उन्हें हिरासत में ले लिया गया है। आज उनके कागजात हेराफेरी से संबंधित कई सवाल किए गए हैं। सूत्रों की मानें तो जमीन कारोबारियों और आइएएस छवि रंजन के खाते के ट्रांजैक्शन के सबूत भी ईडी के हाथ लगे हैं। इससे पहले रांची सब रजिस्ट्रार वैभव मणि और कोलकाता के एडिशनल रजिस्ट्रार त्रिदिप मिश्रा से भी ईडी पूछताछ कर चुकी है। आठ मई को रांची के कारोबारी विष्णु अग्रवाल से पूछताछ की जाएगी।
इससे पहले रांची के सब रजिस्ट्रार वैभव मणि से पूछताछ की गयी। पूछताछ के दौरान वैभव मणि ने रांची में सेना के कब्जे वाली 4.55 एकड़ जमीन व चेशायर होम रोड की एक एकड़ जमीन से संबंधित मामले में रजिस्ट्री से संबंधित कागजात भी ईडी को सौंपा है। वैभव मणि त्रिपाठी ने ईडी को बता दिया है कि उन्होंने किस परिस्थिति में और किसके कहने पर रजिस्ट्री की। ईडी को पूछताछ में वैभव मणि से कुछ अन्य जमीन के बारे में भी जानकारी मिली है, जिसपर आगे का अनुसंधान शुरू हो गया है। अब बताया जा रहा है कि जमीन घोटाला मामले में ईडी की जांच का दायरा बढ़ने वाला है।
एक मई को पूछताछ के दौरान रांची के सदर थाना कांड संख्या 399/2022 का फिर से जांच कर रही रांची पुलिस की टीम ईडी कार्यालय पहुंची थी। डीएसपी सिटी दीपक कुमार व थानेदार सदर श्याम किशोर महतो ने ईडी को उक्त जमीन से संबंधित जानकारी दी। जिसके बाद सिटी डीएसपी दीपक कुमार को कांड का पर्यवेक्षणकर्ता बनाया गया है। बता दें कि चेशायर होम रोड की एक एकड़ जमीन की हेराफेरी की गई है। जालसाजी का आरोप रांची के कारोबारी विष्णु अग्रवाल व अन्य पर है।
इसी मामले में 13 अप्रैल को छापेमारी की गयी। जिसके बाद सात लोगों को गिरफ्तार किया गया। उनसे लगभग 12 दिन पूछताछ की गयी। उसके बाद बड़गाईं अंचल के राजस्व उप निरीक्षक भानु प्रताप प्रसाद, सेना के कब्जे वाली 4.55 एकड़ जमीन का फर्जी विक्रेता प्रदीप बागची सहित कुल सात आरोपितों को जेल भेज दिया है। इन पर सेना की जमीन के मूल दस्तावेज में छेड़छाड़ करने, फर्जीवाड़ा करने व फर्जी दस्तावेज के आधार पर होल्डिंग नंबर लेने, फर्जी कब्जा दिखाकर जमीन बेचने आदि के आरोपों की पुष्टि हो चुकी है।
May 05 2023, 17:21