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अंतिम संस्कार को लेकर विवाद : संविधान चाहिए, कब्रिस्तान चाहिए के नारों के साथ ईसाई समुदाय के लोगों ने सड़क पर शव रखकर किया प्रदर्शन

जगदलपुर- छत्तीसगढ़ के जगदलपुर के बकावंड ब्लॉक में दो पक्षों में मृत युवक के अंतिम संस्कार के रीति-रिवाज को लेकर विवाद गहराता जा रहा है. ग्रामीणों ने ईसाई समुदाय के मृतक के अंतिम संस्कार को लेकर विरोध किया। विवाद के बाद मृत परिवार के लोगों ने शव को मुख्य मार्ग में रखकर चक्काजाम करते हुए प्रदर्शन शुरू कर दिया। प्रदर्शन कर रहे लोग “संविधान चाहिए, कब्रिस्तान चाहिए” जैसे नारे लगा रहे.

जानकारी के अनुसार, 21 मई 2025 को अजय बघेल सड़क हादसे का शिकार हो गए थे, जिसके बाद उसे ढिमरापाल मेडिकल कॉलेज में भर्ती कराया गया. जहां उसे मृत घोषित कर दिया गया. मृतक का शव को ढिमरापाल अस्पताल में रखा गया. परिजनों ने हिंदू प्रथा के हिसाब से अजय के अंतिम संस्कार की तैयारी शुरू कर दी थी. इस बीच दशापाल के ग्रामीणों ने इसका विरोध कर दिया.


क्या है पूरा विवाद?

दरअसल, मृतक अजय बघेल ईसाई समुदाय से थे. ऐसे में हिंदू रीति रिवाजों से अंतिम संस्कार करने पर दशापाल के ग्रामीणों ने विरोध कर दिया. वहीं सरगीपाल के ग्रामीणों का कहना है कि मृतक के परिवार पहले से हिंदू समुदाय से आते हैं, इसीलिए हिंदू प्रथा के आधार पर अंतिम संस्कार किया जाए.

इससे नाराज ईसाई समुदाय के लोगों ने शव को मुख्य मार्ग पर रखकर प्रदर्शन करना शुरू कर दिया. विरोध करते हुए संविधान चाहिए, कब्रिस्तान चाहिए के नारे लगाते रहे. उनका कहना है कि जबतक हिंदू रीति रिवाजों से अजय बघेल का अंतिम संस्कार नहीं करने देते तब तक हम सभी धरना प्रदर्शन पर बैठे रहेंगे.

चक्काजाम की सूचना पर बकावड़ एसडीएम ऋषिकेश तिवारी, तहसीलदार जागेश्वरी गावडे और थाना प्रभारी डोमेन्द्र सिन्हा मौके पर पहुंचे, जहां प्रदर्शन कर रहे लोगों को समझाने की काफी कोशिश की, लेकिन ईसाई समुदाय के लोग धरने पर बैठे रहे.

करोड़ों की लागत से बन रहा गौरव पथ, ठेकेदार के सुस्त रवैये से राहगीर परेशान, हादसे रोकने नगर के युवाओं ने लगाया संकेतक बोर्ड

पिथौरा- नगर में करोड़ों की लागत से बन रहे गौरव पथ में ठेकेदार के सुस्त रवैये से नगरवासी परेशान हैं. नगर के युवाओं ने “आगे रास्ता बंद है” का संकेतक बोर्ड स्वयं तैयार कर रास्ते पर लगवाया है, ताकि आने जाने वाले राहगीरों को परेशानी न हो. पिछले एक सप्ताह से चौक मार्ग का रास्ता बंद कर दिया गया है पर ठेकेदार विनोद जैन ने एक संकेतक बोर्ड भी लगवाना मुनासिब नहीं समझा. इसके चलते रोज कार चालक, ट्रक, दोपहिया वाहन स्थानीय दूध डेयरी तक जाते थे और वहां से वाहन वापस करने को बाध्य हो रहे थे.

ठेकेदार व प्रशासन की अदूरदर्शिता पूर्ण रवैये से काफी नागरिक को रोड बंद की जानकारी ही नहीं हो रही थी. ठेकेदार के इस सुस्त रवैये से परेशान होकर स्थानीय युवा नागरिकों ने स्वयं बोर्ड तैयार कर महेंद्रा ऑटो सेंटर के पहले इसे लगवाया और नागरिकों को बंद रास्ते में आवगमन की परेशानी से निजात दिलाने की पहल की है.

अनहोनी होने की बनी रहती है आशंका

युवा नागरिकों ने आम जनता व जनप्रतिनिधियों से अपील भी की है की लापरवाही पूर्ण गौरव पथ का निर्माण कार्य होने से आमजन को परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. जिम्मेदार स्थानीय शासन-प्रशासन इस विषय पर संकेतक से लेकर नागरिकों की अन्य सुविधाओं का ध्यान दे अन्यथा आए दिन अनहोनी होने की आशंका बनी रहेगी.

27 करोड़ रुपए में दिया गया है ठेकास्थानीय रहवासी गोविंद शर्मा ने बताया, करीब 27 करोड़ रुपए का ठेका है. निर्माण कार्य बिना इंजीनियर के हो रहा है. कही भी सड़क को खोद दिया जा रहा है, जिसमें आए दिन वाहन फंस जाते हैं. कोई सूचना बोर्ड नहीं लगाया जाता. दर्जनभर वाहनों को अब तक नुकसान हुए हैं. ठेकेदार विनोद जैन अपनी मनमर्जी से काम कर रहा है.

ठेकेदार की गलती है, सांकेतिक बोर्ड लगाने बोला जाएगा : इंजीनियर

इस मामले में नगर पंचायत इंजीनियर हेमंत पिसदा ने कहा 23,24 करोड़ का ठेका है. निर्माण कार्य के दौरान सांकेतिक बोर्ड लगाया जाता है पर ठेकेदार नहीं लगा रहे हैं. यह गलत है. ठेकेदार विनोद जैन को सांकेतिक बोर्ड लगाने के लिए कहूंगा.

नेताप्रतिपक्ष ने राज्यपाल को लिखा पत्र, तेंदूपत्ता संग्राहकों का 8 करोड़ गबन करने का लगाया आरोप, मंत्री कश्यप का पलटवार, कहा –

रायपुर- नेता प्रतिपक्ष डॉ. चरणदास महंत ने राज्यपाल को पत्र लिखा है, जिसमें उन्होंने आदिवासी तेंदूपत्ता संग्राहकों के 8 करोड़ का गबन करने का आरोप लगाया है. नेताप्रतिपक्ष के राज्यपाल को लिखे पत्र को लेकर केदार कश्यप ने पलटवार किया है. मंत्री कश्यप ने कहा, सुकमा की घटना के बाद पहली बार DFO को निलंबित किया गया है. खुलकर दोषियों पर कार्रवाई की है. ये साय सरकार की पारदर्शिता है. संदेह के घेरे में रहने वाले सभी लोगों पर कार्रवाई की जाएगी, क्योंकि ये गरीबों और छत्तीसगढ़ का पैसा है. इसके साथ कोई हेरा फेरी नहीं चलेगी.

चरणदास महंत के राज्यापाल को लिख पत्र को लेकर कांग्रेस पर तंज कसते हुए केदार कश्यप ने कहा, इनके पास राजनीति करने का कोई मुद्दा नहीं है. तेंदूपत्ता का सबसे अधिक दर देने वाला एक मात्र राज्य छत्तीसगढ़ है इसलिए इन्हें पीड़ा है, क्योंकि ये आदिवासियों का कभी उद्धार नहीं कर पाए और उद्धार कभी ये कर भी नहीं सकते, क्योंकि आदिवासियों को ये राजनीति करने का साधन मानते हैं।


आदिवासी मुख्यमंत्री के प्रदेश में आदिवासियों के साथ हो रहा अन्याय: महंत

बता दें कि नेता प्रतिपक्ष डॉ. चरणदास महंत ने राज्यपाल को लिखे पत्र में आदिवासी मुख्यमंत्री के प्रदेश में आदिवासियों के साथ अन्याय होने की बात लिखी है. राज्य की उदासीन कार्रवाई पर भी सवाल उठाया है. नेता प्रतिपक्ष डॉ. महंत ने पत्र में लिखा है कि अनुसूचित क्षेत्र सुकमा वनमंडल के 67732 तेन्दूपत्ता संग्राहक परिवारों के वर्ष 2021 और 2022 के तेन्दूपत्ता बोनस की राशि 8,21,89,273.00 रुपए का गबन करने वाले अपराधियों के विरूद्ध कठोरतम कार्रवाई करने के लिए निर्देशित करें.

केदार कश्यप ने दीपक बैज को दी चुनौती

फोर्स का मशीनरी की तरह उपयोग करने वाले दीपक बैज के बयान पर केदार कश्यप ने पलटवार करते हुए उन्होंने बैज को चुनौती दी. मंत्री कश्यप ने कहा, दीपक बैज कांग्रेस के पिछले पांच में गृह मंत्री का बाइट निकाल के दिखाए, जिन्होंने नक्सलवाद के ख़िलाफ़ बोला हो, जिन्होंने पुलिस का हौसला बुलंद किया हो. दीपक बैज को मेरी चुनौती है. सत्ता से बाहर होने के बाद इन्हें अलग-अलग विचार आते हैं. हमारी शुभकामनाएं है, ये हमेशा विपक्ष में रहे और विभिन्न विषयों पर हमें जानकारी देते रहे..

फोर्स को मशीन की तरह उपयोग वाले कांग्रेस के आरोप पर CM साय का बड़ा बयान, कहा – नक्सलवाद को बढ़ावा देने वाली कांग्रेस को ये कहने का कोई अधिकार नही

रायपुर- बस्तर में फोर्स को मशीन की तरह उपयोग करने वाले कांग्रेस के आरोप पर सीएम विष्णुदेव साय ने बड़ा बयान दिया है. सीएम ने कहा, नक्सलवाद को बढ़ावा देने वाली कांग्रेस के मुंह से ये शोभा नहीं देता. शांति वार्ता के सारे रास्ते सरकार ने खोले हैं. अलग से निमंत्रण की आवश्यकता नहीं है.

सीएम साय ने कहा, आत्मसमर्पित नक्सलियों की स्केलिंग करा रहे, आवास दे रहे. कल 2500 लोगों को पीएम आवास की किश्त भेजने का काम किए हैं. नक्सलवाद को बढ़ावा देने वाली कांग्रेस को ये कहने का कोई अधिकार नहीं है, उनके मुंह से ये शोभा नहीं देता.

बता दें कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष दीपक बैज ने मीडिया से चर्चा के दौरान शांति वार्ता के लिए नक्सलियों के पत्र को सही बताया था. उन्होंने कहा था कि अगर नक्सली शांति वार्ता चाहते हैं तो सरकार को संवाद करना चाहिए. वहीं सरकार पर बस्तर फोर्स को मशीन की तरह उपयोग करने का आरोप लगाते हुए उन्होंने कहा कि नक्सल ऑपरेशन ठीक है, लेकिन क्या जवानों से उनकी परिस्थिति पूछी गई है?

दीपक बैज ने कहा कि बस्तर में आदिवासी ही नक्सल मोर्चे पर लड़ाई लड़ते हैं. बाक़ी नेता-मंत्रियों से सेटिंग कर मैदानी क्षेत्र में मलाई खाते हैं. बस्तर के जवान मलेरिया, डायरिया, लू जैसे बीमारियों से ग्रसित हैं. क्या सरकार उन्हें नक्सल लड़ाई के लिए अतिरिक्त भत्ता देती है? नक्सली संवाद करना चाहते है तो सरकार को विचार करना चाहिए. जवानों का रेस्ट जरूरी है.

कांग्रेस की संविधान बचाओ रैली की तैयारी को लेकर हुई अहम बैठक: छत्तीसगढ़ में 8 मई को बिलासपुर से होगी शुरुआत, डिप्टी सीएम अरुण साव ने कसा तंज

रायपुर- कांग्रेस के संविधान बचाओ रैली अभियान की रूपरेखा तय करने आज कांग्रेस प्रदेश मुख्यालय राजीव भवन में महत्वपूर्ण बैठक हुई। सह-प्रभारी विजय जांगिड़, पीसीसी चीफ दीपक बैज ने बिलासपुर संभाग के सभी वरिष्ठ नेता, विधायकों और सांसदों की बैठक ली जिसमें पूर्व विधायक सत्यनारायण शर्मा, पूर्व कांग्रेस अध्यक्ष धनेन्द्र साहू, प्रभारी महामंत्री मलकीत सिंह गैदू, विधायक उमेश पटेल, फूलसिंह राठिया सहित बिलासपुर संभाग के नेता मौजूद रहे। बैठक में पूर्व मंत्री एवं विधायक उमेश पटेल को ज़िम्मेदारी देते हुए कार्यक्रम संयोजक नियुक्त किया गया।

8 मई से होगी रैली की शुरुआत

बता दें कि राष्ट्रीय स्तर पर आयोजित संविधान बचाओ रैली अभियान की छत्तीसगढ़ में 8 मई को बिलासपुर से शुरुआत होगी। प्रदेश स्तरीय रैली के बाद सभी जिला मुख्यालयों और विधानसभा क्षेत्रों में संविधान बचाओ रैली निकाली जायेगी जिसमें कांग्रेसी कार्यकर्ता घर-घर तक संविधान बचाओ अभियान पर जागरूकता फैलायेंगे।

बैठक को लेकर प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष दीपक बैज ने कहा कि बीते दिन बिलासपुर में स्वास्थ्य न्याय यात्रा निकाली गई जो सफल रही। अब कांग्रेस संविधान बचाओ अभियान को घर-घर लेकर जायेगी। मोदी सरकार द्वारा संविधान और लोकतांत्रिक संस्थाओं पर किये जा रहे लगातार हमलों, बदले की राजनीति सहित कई विषयों को जनता तक पहुँचकर संविधान में निहित मूल्यों पर फिर से जोर देगा।

डिप्टी सीएम अरुण साव ने कसा तंज

कांग्रेस के संविधान बचाओ यात्रा को लेकर डिप्टी सीएम अरुण साव ने कांग्रेस की संविधान बचाओ यात्रा को जनता की आँखों में धूल झोंकने की कोशिश बताई है। उन्होंने तंज कसते हुए कहा कि स्वार्थ, सत्ता और वोट बैंक के लिए कांग्रेस ने संविधान का उल्लंघन किया। आज सत्ता बाहर से बाहर है, अस्तित्व के लिए संघर्ष कर रही है तब उन्हें संविधान की याद आ रही है। भारत में संविधान आज सर्वोपरि है, कांग्रेस सिर्फ़ जनता की आँखों में धूल झोंकने का काम कर रही है।

रायपुर में बारिश के साथ गिरे ओले, 2 दिनों तक बदला रहेगा मौसम का मिजाज…

रायपुर- छत्तीसगढ़ में बीते 2-3 दिनों से मौसम का मिजाज बदला हुआ है. आज भी अधिकांश जिलों में आंधी तूफान के साथ बारिश का दौर जारी रहा. कोरिया में 70, बिलासपुर में 80 और रायपुर 26 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से हवाएं चली और तेज वर्षा हुई. इससे तापमान में चार डिग्री की गिरावट दर्ज की गई. मौसम विभाग के जानकारी के मुताबिक, आने वाले 2 दिनों तक बारिश और तूफान का दौर जारी रहने वाला है.

प्रदेश का अधिकतम तापमान बिलासपुर में 40 डिग्री दर्ज किया गया. वही न्यूनतम 22 डिग्री दुर्ग में दर्ज किया गया. इधर पेंड्रा में 35.5, अंबिकापुर में 36.2, जगदलपुर में 33.7, दुर्ग में 38.6 तापमान दर्ज किया गया. अधिकांश जिलों में 3-4 डिग्री तक तापमान में गिरावट हुई है.


कौन-कौन से सिस्टम है ऐक्टिव:

मौसम विभाग की दी गई जानकारी के अनुसार, प्रदेश में दो सिस्टम का प्रभाव बना हुआ है:

1) एक द्रोणिका दक्षिण-पूर्वी राजस्थान और उसके आसपास के क्षेत्र से गुजरात, महाराष्ट्र, आंतरिक कर्नाटक होते हुए दक्षिण-तमिलनाडु तक औसत समुद्र तल से 0.9 बकमी ऊपर बनी हुई है.

2) पूर्वी-पक्षिम द्रोणिका उपरोक्त चक्रवाती परीसंरचना क्षेत्र से दक्षिण पूर्व राजस्थान और उसके आसपास के क्षेत्रों से मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़, झारखांड होते हुए उत्तरी उड़ीसा तक जो औसत समुद्र तल से 1.5 किमी ऊपर तक फैली हुई है.

6 मई तक लोगों को राहत, फिर चढ़ेगा पारा

मौसम विभाग की जानकारी के मुताबिक, आने वाले दो दिन बारिश की संभावना बनी हुई है. लगभग प्रदेश के कुछ इलाकों में 40-50 kmph घंटे की रफ्तार से हवाएं चलेंगी. साथ ही अंधड़ और तेज बारिश के साथ ओले गिरने की संभावना जताई गई है.

रायपुर में गिरे ओले, कल और चढ़ेगा पारा

आज रायपुर के कोटा और नया रायपुर के कुछ इलाकों में ओले गिरे. तेज आंधी-तूफान और बारिश से लोगों को राहत मिली है. रायपुर में अधिकतम 39.9 डिग्री और न्यूनतम 26.5 डिग्री रिकॉर्ड किया गया है. लेकिन कल के तापमान में और गिरावट की संभावना बनी हुई है. कल 39 डिग्री अधिकतम वही 23 डिग्री न्यूनतम तापमान के अनुमान मौसम विभाग ने लगाए गए है.

मौसम विभाग द्वारा जारी किया गया अलर्ट

सुकमा, बीजापुर, दंतेवाडा, बस्तर, कोंडागांव, बालोद, राजनांदगांव, महासमुंद, रायपुर, बलौदा बाजार, जांजगीर-चांपा, रायगढ़, बिलासपुर, कोरबा, जशपुर, गौरेला-पेंड्रा-मरवाही, दुर्ग, बेमेतरा, कबीरधाम, मुंगेली, सुरगुजा, सूरजपुर, कोररया, बलरामपुर के लिए अलर्ट जारी किया.

HSRP को लेकर परिवहन सचिव ने ली हाईलेवल मीटिंग, लोगों को सुविधा देने रोड मैप तैयार, नंबर प्लेट लगाने जिलों में लगाए जाएंगे कैंप

रायपुर- HSRP प्लेट के संबंध में आज क्षेत्रीय परिवहन अधिकारियों एवं अनुबंधित कंपनियों की हाई लेवल मीटिंग हुई, जिसमें हाई सिक्योरिटी नम्बर प्लेट जनता को कम से कम असुविधा के साथ निर्धारित समय में लगाए जा सके, इसके लिए रोड मैप तैयार की गई.

एस. प्रकाश परिवहन सचिव सह परिवहन आयुक्त एवं डी. रविशंकर अपर परिवहन आयुक्त की अध्यक्षता में इंद्रावती भवन, के सेमिनार रूम में राज्य के सभी RTO/ DTO के साथ HSRP प्लेट के लिए अनुबंधित कंपनियों के साथ हाई लेवल मीटिंग ली गई. मीटिंग में जनता को आ रही समस्याओं के बारे में विस्तारपूर्वक चर्चा हुई. राज्य में 01 अप्रैल 2019 से पहले की लगभग 50 लाख से अधिक पंजीकृत वाहन हैं एवं लगभग 03 लाख के करीब HSRP प्लेट के ऑर्डर प्राप्त हो चुके है, किंतु फिटमेंट की गति थोड़ी धीमी है. इसके लिए वाहनों की संख्या के आधार पर अनुबंधित कंपनियों के फिटमेंट सेंटरों की संख्या में वृद्धि करने के साथ हर जिले में RTO/DTO को कंपनियों के साथ कैम्प टीम बनाने के निर्देश दिए गए।

रायपुर में 05 टीम, धमतरी में 04 टीम, महासमुंद में 04 टीम,दुर्ग में 08 टीम ,कवर्धा- 02 टीम,बिलासपुर-06 टीम,जांजगीर चम्पा 03 टीम,कोरबा 05 टीम, रायगढ़-06 टीम,जशपुर- 03 टीम,अम्बिकापुर -04 टीम,कोरिया-03 टीम,जगदलपुर-03 टीम, दंतेवाड़ा-02 टीम,कांकेर-03 टीम,बलौदाबाजार-03 टीम,गरियाबंद, बालोद, बेमेतरा में 02-02 टीम एवं अन्य जिलों में 01-01 कैम्प/मोबाइल टीम बनाने के निर्देश दिए गए, जो जिलों के विभिन्न स्थानों पर कैम्प लगा कर HSRP के नियमानुसार ऑर्डर लेंगे, आवश्यकता अनुसार नम्बर अपडेट किए जाएंगे. उसी दिन एवं दूरस्थ जिलो में दूसरे दिन तक अनिवार्य रूप से HSRP प्लेट फिट किए जाने के निर्देश दिए गए.

इसके अतिरिक्त अनुबंधित कंपनियों को सभी जिलो में वाहनों की संख्या के अनुसार HSRP प्लेट बनाने वाली मशीनों की संख्या बढ़ाने के भी निर्देश दिए गए, जिससे जल्द से जल्द लोगों के HSRP प्लेट बन सके. नियत समय में संबंधित स्थान पर प्लेट पहुँच सकें, फिटमेंट किया जा सके. इसके अलावा HSRP प्लेट के लिए ऑर्डर करने पर 15 दिनों से अधिक की वेटिंग न हो, प्रत्येक जिलों के लिए नोडल अधिकारियों की नियुक्ति की जाएगी. मोबाइल नम्बर सार्वजनिक किये जाएंगे. कार्यों में तीव्रता, समन्वय लाते हुए 03 महीनों में HSRP प्लेट फिटमेंट का लक्ष्य रखा गया है.

मीटिंग में परिवहन विभाग की ओर से यूबीएस चौहान संयुक्त परिवहन आयुक्त, मनोज ध्रुव, उप परिवहन आयुक्त, कृष्ण कुमार पटेल, उप परिवहन आयुक्त ,जीआर देवांगन, संयुक्त संचालक वित्त, योगेश्वरी वर्मा, सहायक क्षेत्रीय परिवहन अधिकारी के अलावा राज्य के सभी वरिष्ठ क्षेत्रीय परिवहन अधिकारी, क्षेत्रीय परिवहन अधिकारी, जिला परिवहन अधिकारी के अलावा HSRP प्लेट के लिए अनुबंधित कंपनियों की ओर से बिश्वजीत मुखर्जी, रियल मेज़ॉन, अशोक शर्मा, रॉस मार्टा व अन्य अधिकारी शामिल हुए.

रायपुर पश्चिम को मिली उच्च शिक्षा की नई सौगात, कोटा में शासकीय नवीन महाविद्यालय का हुआ शिलान्यास…

रायपुर- छत्तीसगढ़ में शिक्षा के क्षेत्र में एक और ऐतिहासिक कदम उठाते हुए रायपुर पश्चिम विधानसभा के कोटा क्षेत्र में शासकीय नवीन महाविद्यालय की स्थापना हेतु शिलान्यास समारोह का आयोजन बड़े धूमधाम से किया गया. यह कार्यक्रम शीतला तालाब स्थित बड़ा सामुदायिक भवन में आयोजित हुआ, जिसमें स्थानीय नागरिकों, जनप्रतिनिधियों और विद्यार्थियों की बड़ी संख्या में उपस्थिति रही.

इस अवसर पर मुख्य अतिथि विधायक भाजपा के वरिष्ठ नेता राजेश मूणत उपस्थित रहे. साथ ही महापौर मीनल चौबे नगर निगम सभापति सूर्यकांत राठौड़, दीपक जायसवाल, प्रीतम ठाकुर भारतीय जनता पार्टी के वरिष्ठ व कनिष्ठ कार्यकर्ता, स्थानीय नागरिकगण भी कार्यक्रम में शामिल हुए.

अपने संबोधन में राजेश मूणत ने कहा:

“कोटा ही नहीं, पूरे रायपुर पश्चिम विधानसभा में शिक्षा, स्वास्थ्य, सड़क, जलनिकासी और युवाओं के कौशल विकास जैसे अनेक क्षेत्रों में व्यापक बदलाव लाया जा रहा है. भाजपा की डबल नहीं, अब ट्रिपल इंजन की सरकार—केंद्र, राज्य और स्थानीय निकाय—जनता की आकांक्षाओं को गति देने के लिए प्रतिबद्ध है.”

उन्होंने आगे कहा:

“यह नवीन महाविद्यालय न केवल युवाओं के लिए उच्च शिक्षा के अवसर खोलेगा, बल्कि कोटा और आसपास के ग्रामीण क्षेत्र के बच्चों को भी मजबूती देगा. भाजपा सरकार का लक्ष्य है कि कोई भी छात्र संसाधनों के अभाव में शिक्षा से वंचित न रह जाए.”

उन्होंने कहा कि हम प्रयास करेंगे कि महाविद्यालय की बिल्डिंग एक वर्ष के अन्दर बनकर तैयार हो जाए. उन्होंने कहा कि अपने स्वयं के भवन में अध्ययन में छात्रों को एक अलग ही गर्वानुभूति होती है.

महापौर मीनल चौबे ने अपने उद्बोधन में कहा:

“रायपुर की भावी पीढ़ी को गुणवत्तापूर्ण शिक्षा मिल सके, इसके लिए यह महाविद्यालय एक महत्वपूर्ण कदम है. शहर का हर कोना, हर बच्चा शिक्षा से जुड़ सके, यही हमारी प्राथमिकता है. नगर निगम की ओर से हम हर आवश्यक सहयोग प्रदान करेंगे.”

नगर निगम सभापति सूर्यकांत राठौड़ ने कहा:

“कोटा में इस महाविद्यालय का आरंभ होना न केवल शैक्षणिक विकास का संकेत है, बल्कि यह सामाजिक समरसता और अवसरों की समानता का प्रतीक भी है. यह निर्णय स्थानीय युवाओं के भविष्य को नई दिशा देगा.”

यहां यह बताना समीचीन होगा कि वर्ष 2018 में राजेश मूणत ने ही इस महाविद्यालय को आरंभ कराया था, और उसके बाद पूरे 5 वर्ष तक इसका भवन नहीं बन पाया.

मूणत ने वर्ष 2024 में इसके लिए बजट प्रावधान कराया, जमीन का अग्रिम आधिपत्य उच्च शिक्षा विभाग को दिलाया और आज इसका भूमि पूजन किया.

कार्यक्रम के अंत में स्थानीय नागरिकों ने इस पहल के लिए सरकार और जनप्रतिनिधियों का आभार व्यक्त किया और इसे शिक्षा व विकास की दिशा में मील का पत्थर बताया.

मुख्यमंत्री विष्णु देव साय द्वारा छत्तीसगढ़ में पंजीयन की 10 क्रांति का शुभारंभ

रायपुर-  मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने नया रायपुर में आयोजित कार्यक्रम में पंजीयन की 10 क्रांति के अंतर्गत रजिस्ट्री प्रक्रिया में टेक्नोलॉजी आधारित दस नवाचारों का लोकार्पण किया। इस अवसर पर वित्त मंत्री ओ पी चौधरी, राजस्व मंत्री टंक राम वर्मा, उद्योग मंत्री लखन लाल देवांगन, मुख्य सचिव अमिताभ जैन, एवं राज्य शासन के अनेक वरिष्ठ अधिकारीगण, चेंबर ऑफ कॉमर्स एवं क्रेडाई के प्रतिनिधिगण, पंजीयन विभाग के अधिकारी कर्मचारी एवं रजिस्ट्री के पक्षकारगण उपस्थित थे।

मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने कहा कि सरकार अपने डेढ़ वर्ष के कार्यकाल में सुशासन की राह में आगे बढ़ रही है। राजस्व से जुड़े कार्यों के लिए अब लोगों को कार्यालयों का चक्कर नहीं लगाना पड़ेगा। पंजीयन के साथ अब नामांतरण का कार्य भी तत्काल होगा। उन्होंने कहा कि राजस्व रिकॉर्ड में त्रुटि का असर भूमिस्वामी पर पड़ता है। त्रुटि कोई और करे और भुगतना किसी और को पड़ता है। अब लोगों को इन समस्याओं से मुक्ति मिलेगी। हमारी सरकार का पहला लक्ष्य सुशासन है। लोगों के जीवन को आसान और सरल बनाना है। एक जन प्रतिनिधि होने के नाते मुझे विगत 35 वर्षों से राजस्व, जमीन मामलों में लोगों के समस्याओं से रूबरू होने का मौका मिला। नामांतरण संबंधी मामलों में मैंने लोगों को सालों महीनों भटकते देखा है। ऑटो म्यूटेशन से इस समस्या का प्रभावी निराकरण हो गया है।

मुख्यमंत्री श्री साय ने कहा कि ऑफलाईन व्यवस्था को बंद कर ऑनलाईन करते हुए सरकार भ्रष्टाचार के रास्ते बंद कर रही है। कोयला, आबकारी सेक्टर में किए गए सुधारों की तर्ज पर भूमि पंजीयन की प्रक्रिया में रिफार्म किया गया है। इससे आम जनता को राहत मिलेगी।

मुख्यमंत्री श्री साय ने कहा कि छत्तीसगढ़ पहला राज्य है जहां सुशासन एवं अभिसरण विभाग का गठन किया गया है। राज्य सरकार सभी स्तर पर डिजिटल गवर्नेस को अपना कर सुशासन स्थापना की दिशा में कार्य करते हुए शासकीय काम-काज में पारदर्शिता ला रही है। साथ ही शासकीय योजनाओं का प्रभावी क्रियान्वयन सुनिश्चित कर इनका लाभ आमजन तक समय पर पहुंचा रहे हैं।

मुख्यमंत्री श्री साय ने इस अवसर पर कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी रिफार्म, परफार्म और ट्रांसफार्म पर जोर देते हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने तकनीक को बढ़ावा देकर नागरिक सेवाओं की डिलीवरी को आसान बनाने का जो रास्ता दिखाया है, उस पर अग्रसर होते हुए राज्य सरकार छत्तीसगढ़ में लगातार रिफार्म कर रही है। उन्होंने कहा कि पहले रजिस्ट्री और नामांतरण के लिए लोगों को महिनों चक्कर लगाना पड़ता था। अब ये कार्य मिनटों में होंगे।

इस दौरान मुख्यमंत्री जी ने रजिस्ट्री ऑफिस नवा रायपुर में उपस्थित लाभार्थी पक्षकारों से लाइव कॉन्फ्रेंसिंग भी किया, बातचीत किया और उनसे उनकी प्रतिक्रिया फीडबैक लिया। मुख्यमंत्री श्री साय ने इस अवसर पर आज रजिस्ट्री कराने वाले लोगों से वीडियो कान्फ्रेंस से चर्चा की। बालोद जिले के सनौद गांव के मोहनलाल साहू ने कहा कि पहले रजिस्ट्री कराने के लिए हफ्ता-दो हफ्ता चक्कर लगाना पड़ता था। रजिस्ट्री कराने में सुबह से शाम हो जाती थी। आज अपने बेटे के नाम से 1700 वर्गफुट जमीन की रजिस्ट्री कराने में 15-20 मिनट लगा। मुख्यमंत्री के पूछने पर बताया कि रजिस्ट्री के साथ नामांतरण भी हो गया है। पक्षकार मोहनलाल साहू ने माननीय मुख्यमंत्री जी को बताया कि इसके पहले रजिस्ट्री के बाद नामांतरण के लिए उन्हें महीनों तहसीलदार, पटवारी ऑफिस के चक्कर लगाते रहना पड़ता था । रायपुर के अयूब अहमद ने बताया कि पहले नामांतरण कराने में 2-3 महीना लगता था। आज जल्द रजिस्ट्री हो गई साथ ही नामांतरण भी हो गया। श्री अय्यूब अहमद ने बताया कि नामांतरण नहीं होने के कारण उसकी एक जमीन तीन बार फर्जी रजिस्ट्री से बिक गई थी। उन्होंने मुख्यमंत्री, वाणिज्यिक कर मंत्री तथा राजस्व मंत्री को इसके लिए धन्यवाद ज्ञापित किया।

इस अवसर पर सभा को संबोधित करते हुए वित्त और पंजीयन मंत्री ओ.पी. चौधरी ने कहा कि इतिहास इस बात का गवाह है कि बिना टेक्नोलॉजीकल इनोवेशन के कोई भी सभ्यता और कोई भी राष्ट्र प्रगति नहीं करता। हमारी सरकार टेक्नोलॉजीकल इंटरवेंशन के द्वारा रजिस्ट्री की प्रक्रिया को आसान और सुगम बनाने की दिशा में काम कर रही है। उन्होंने बताया कि एक आम आदमी जीवन में एक दो बार ही रजिस्ट्री करता है और यह बहुत खुशी का क्षण होता है, अतः रजिस्ट्री ऑफिस से निकलते समय उनका अनुभव श्रेष्ठ प्रसन्नता भरा होना चाहिए, जो जटिल प्रक्रिया के वजह से अमूमन नहीं होता था। मंत्री बनने के तुरंत बाद मैने अपने अधिकारियों को रजिस्ट्री प्रक्रिया को सरल आसान बनाने का लक्ष्य दिया था, ताकि लोगों को रजिस्ट्री की जटिल प्रक्रिया से राहत मिले। महानिरीक्षक पंजीयन पुष्पेन्द्र कुमार मीणा के नेतृत्व में टीम विगत सवा साल से कड़ी मेहनत कर रही थी। सर्वप्रथम सुगम ऐप लॉन्च किया गया। जिसके माध्यम से जमीन का अक्षांश देशांतर की स्थिति और भूमि की वास्तविक अवस्थिति दर्ज हो जाता है। विभाग में प्रचलित रजिस्ट्री अधिनिमय 1908 का बनाया गया था तथा इसका विषयवस्तु वर्तमान समय की जरूरतों से मेल नही खाता था जैसे कि गोदनामा विलेख पंजीयन प्रावधान में केवल पुत्र शब्द था क्योकि उस समय पुत्री के गोद लेने का प्रचलन नही था। हमने रजिस्ट्री नियम का व्यापक अध्ययन कर इसके प्रावधानों को वर्तमान के जरूरतों के अनुरूप अनूकूलन करते हुए 93 धाराओं में से 35 संशोधन विधान सभा में पारित किया। रजिस्ट्री प्रक्रिया में टेक्नॉलाजी का अधिक से अधिक समावेश करते हुए और मानवीय हस्तक्षेप को सीमित करते हुए ये 10 नये क्रांतियुक्त नवाचार विकसित किये गये हैं।

वाणिज्यिक कर मंत्री श्री चौधरी ने कहा कि सरकार ने पंजीयन विभाग में अनेक सुधार किये हैं। अब आमजनता को काम के लिए बार-बार कार्यालयों के चक्कर लगाने की जरूरत नही पड़ेगी। फर्जी रजिस्ट्री को शून्य करने का अधिकार पंजीयन महानिरीक्षक को दिया गया है। पारिवारिक दान, हक त्याग और बंटवारे पर पंजीयन शुल्क केवल 5 सौ रुपए कर दिया गया है। डिजिटल गवर्नेस को बढ़ावा देते हुए सुगम एप के माध्यम से 2 लाख से अधिक संपत्तियों की जियो टैगिंग सुनिश्चित की गई है। इससे संपत्ति की पहचान और सुरक्षा सुनिश्चित हुई है। गाइडलाइन मूल्य से अधिक विक्रय पर पंजीयन शुल्क माफ कर मध्यम वर्ग को राहत प्रदान की गई है। विभागीय सेटअप बढ़ाया गया है। उन्होंने कहा कि सरकार का विजन है सरकार वहां तक पहुंचे जहां आम आदमी है और वह भी सरलता के साथ। डिजिटल गवर्नेस का बेहतरीन उदाहरण इन 10 क्रांतिकारी पहल में है जो पंजीयन विभाग के माध्यम से किए गए हैं।

सभा को राजस्व मंत्री टंक राम वर्मा ने भी संबोधित किया। उन्होंने कहा कि राजस्व विभाग का 90 प्रतिशत लंबित प्रकरण नामांतरण का ही होता है, अब ऑटो म्यूटेशन होने के पश्चात् राजस्व विभाग का कार्य भार एकदम से कम हो जाएगा, जिसके कारण विभाग के अधिकारी एवं कर्मचारीगण अन्य बाकी काम को बहुत ही सक्षमता से कर पाएंगे।

मुख्य सचिव अमिताभ जैन ने सभा को संबोधित करते हुए कहा कि देश में कई क्रांति पहले भी हुई है जैसे हरित क्रांति, परन्तु आज यहां जो क्रांति हो रही है, वह सरकारी विभाग में जनता के कामों को आसान और सुगम बनाने की क्रांति है। जो माननीय मुख्यमंत्री द्वारा दिए गए सुशासन के विजन तथा वित्त मंत्री के मार्गदर्शन एवं निरंतर मानिटरिंग से संभव हो पाया है।

कार्यक्रम के प्रारंभ में अलरमेल मंगई डी, सचिव, वाणिज्यिक कर पंजीयन द्वारा 10 नये कांतिकारी परिवर्तनों के विषय में विस्तार से बताया गया तथा 10 सुधारों का वीडियो प्रस्तुतिकरण किया गया ।

1 आधार आधारित प्रमाणीकरण सुविधा - पंजीयन साफ्टवेयर को आधार लिंक किया गया है, पंजीयन के समय क्रेता-विक्रेता एवं गवाहों की पहचान आधार रिकार्ड के माध्यम से की जाएगी जिससे गलत व्यक्ति को खड़े कराकर पंजीयन नही हो सकेगा। आम जनता को फर्जीवाडे का शिकार नही होना पड़ेगा।

2 ऑनलाईन सर्च एवं डाउनलोड की सुविधा - आम आदमी वर्षों की जमा पूंजी लगाकर स्वयं का घर खरीदते है, इसलिए संपत्ती खरीदने से पहले पूरी जांच पड़ताल आवश्यक है। अभी रजिस्ट्री की जानकारी के लिए पंजीयन कार्यालय में स्वयं या वकील के माध्यम से उपस्थित होकर सर्च करना पड़ता है, ऑनलाईन सर्च का प्रावधान होने से खसरा नंबर डालते ही उस खसरे के पूर्व के समस्त लेनदेन की जानकारी एक क्लिक पर प्राप्त हो सकेगी।

3 भारमुक्त प्रमाण पत्र की सुविधा - भार मुक्त प्रमाण पत्र एक बहुत ही आवश्यक प्रमाणपत्र है जो संपत्ति खरीदने के पूर्व उसकी जानकारी उपलब्ध कराता है। यह प्रमाणपत्र अब आनलाइन ही प्रदाय किया जा सकेगा।

4 एकीकृत कैशलेस भुगतान की सुविधा- पहले रजिस्ट्री कराने के लिए स्टाम्प शुल्क और पंजीयन शुल्क का अलग अलग जगह और समय पर भुगतान करना पड़ता था। अब स्टाम्प एवं पंजीयन शुल्क को एक साथ लिये जाने के लिए एकीकृत कैशलस सिस्टम तैयार किया गया है। स्टाम्प एवं पंजीयन शुल्क का एकसाथ सुविधानुसार क्रेडिट डेबिट कार्ड, पी०ओ०एस० मशीन, नेट बैंकिंग अथवा यू०पी०आई से फीस का भुगतान हो सकेगा।

5 व्हाट्सएप मैसेज सर्विसेज - व्हाट्सएप आज के समय में सर्वाधिक उपयोग हो रहा सोशल मीडिया प्लेटफार्म है। पंजीयन कराने वाले क्रेता-विक्रेता को अपाईन्टमेंट सहित पंजीयन होने तक सभी प्रकार के अपडेट एवं एलर्ट व्हाट्सएप में ही प्राप्त होंगे। रजिस्ट्री की प्रति भी व्हाट्सएप से ही डाउनलोड हो जायेगी। इस सुविधा के माध्यम से फीडबैक एवं शिकायतें भी व्हाट्सएप के माध्यम से की जा सकेंगी।

6 डिजीलॉकर की सुविधा - रजिस्ट्री दस्तावेजों को डिजिलॉकर में सुरक्षित स्टोर किया जाएगा, ताकि आवश्यकता पड़ने पर पक्षकार को आसानी से डिजीटल प्रमाणित दस्तावेज उपलब्ध हो जाए।

7 आटो डीड जनरेशन की सुविधा - जनता की सुविधा के लिए रजिस्ट्री को पेपर लेस बनाया गया है। ऑनलाईन दस्तावेज प्रारूप का चयन कर पक्षकार और संपत्ति विवरण दर्ज करने पर स्वतः ही दस्तावेज तैयार हो जाएगा। वही दस्तावेज पेपरलेस होकर उप पंजीयक को ऑनलाइन प्रस्तुत होगा।

8 डिजीडॉक्यूमेंट की सुविधा - कुछ दस्तावेज जिसमें स्टाम्प लगाना आवश्यक है, परन्तु पंजीयन अनिवार्य नही है जैसे कि शपथ पत्र, अनुबंध पत्र ।इनका प्रारूप ऑनलाईन डिजीडॉक्यूमेंट से तैयार कर स्टाम्प शुल्क भी डिजीटल रूप से चुकाया जा सकेगा। दस्तावेज तैयार करने और स्टाम्प के लिए अलग-अलग जगह जाने की आवश्यकता नहीं है।

9. घर बैठे रजिस्ट्री की सुविधा - जनता की सुविधा के लिए रजिस्ट्री को पेपरलेस किया गया है। दस्तावेज का प्रारूप चयन करने से ऑनलाईन दस्तावेज तैयार हो जाएगा स्टाम्प और पंजीयन फीस ऑनलाईन चुकाकर पक्षकार पंजीयन के लिए अपाइन्टमेंट लेकर घर बैठे ही आधार प्रमाणीकरण के माध्यम से पंजीयन करा सकेंगे। रजिस्ट्री पूर्ण होते ही दस्तावेज स्वतः ही ऑनलाइन प्राप्त हो जाएगा।

10. स्वतः नामांतरण की सुविधा इत्यादि- अचल संपत्ति खरीदने के लिए पंजीयन कराया जाता है। उसके बाद उसे राजस्व रिकार्ड में अद्यतन कराना पड़ता हैं, नामांतरण की इस प्रक्रिया में महीने लग जाते थे, इस बीच वही संपत्ति अन्य को बेच दिये जाने पर पीड़ित पक्षकारों को न्याय के लिए वर्षों इंतजार करना पड़ता है। अब पंजीयन के तुरंत बाद ही स्वतः नामांतरण होने से न केवल समय की बचत होगी बल्कि आम जनता को फर्जीवाडे का शिकार भी नही होना पड़ेगा। अंत में महानिरीक्षक पंजीयन के द्वारा धन्यवाद ज्ञापन कर कार्यक्रम का समापन किया गया ।

मुख्यमंत्री छत्तीसगढ़ पादप बोर्ड के नवनियुक्त अध्यक्ष विकास मरकाम के पदभार ग्रहण एवं अभिनंदन समारोह में हुए शामिल

रायपुर-  मुख्यमंत्री विष्णु देव साय आज राजधानी रायपुर स्थित पंडित दीनदयाल उपाध्याय आडिटोरियम में छत्तीसगढ़ आदिवासी स्थानीय स्वास्थ्य परंपरा एवं औषधि पादप बोर्ड के नव नियुक्त अध्यक्ष विकास मरकाम के पदभार ग्रहण एवं अभिनंदन समारोह में मुख्य अतिथि के रूप में शामिल हुए। इस अवसर पर उन्होंने श्री मरकाम को नई जिम्मेदारी के लिए बधाई एवं शुभकामनाएं दी।

मुख्यमंत्री श्री साय ने पदभार ग्रहण समारोह को सम्बोधित करते हुए कहा कि छत्तीसगढ़ आदिवासी स्थानीय स्वास्थ्य परंपरा एवं औषधि पादप बोर्ड के माध्यम से बस्तर एवं सरगुजा संभाग में औषधि पादप को लेकर जागरूकता अभियान चलाया जाएगा। उन्होंने कहा कि औषधि पौधों में बहुत से गुण होते हैं, इनके साथ ही बेहतर आमदनी के लिए औषधि पादपों के रोपण को बढ़ावा देने की जरूरत है। बस्तर एवं सरगुजा में इसकी अपार संभावनाएं है। बोर्ड को इस दिशा में और अधिक कार्य करने की जरूरत है।

मुख्यमंत्री श्री साय ने कहा कि हमारे बैगा-गुनिया और वैद्य आदिम समय से वन औषधि की पहचान कर लोगों का इलाज करते हैं। उन्होंने कहा डॉ रमन सिंह ने बैगा, वैद्य के बेहतरी एवं मानव स्वास्थ्य सेवा के लिए छत्तीसगढ़ आदिवासी, स्थानीय स्वास्थ्य परंपरा एवं औषधि पादप बोर्ड गठन किया था। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने छत्तीसगढ़ के अबूझमाड़ के ओरछा के परंपरागत वैद्य हेमंचद मांझी को औषधि पादप के क्षेत्र में उनके उत्कृष्ठ कार्य के लिए पद्मश्री से सम्मानित किया है।

आदिम जाति विकास मंत्री राम विचार नेताम ने कहा कि जिन उद्देश्यों को लेकर छत्तीसगढ़ आदिवासी, स्थानीय स्वास्थ्य परंपरा एवं औषधि पादप बोर्ड का गठन किया गया है, निश्चित ही श्री मरकाम के नेतृत्व में उन उद्देश्यों को पूरा कर पाएंगे। वैद्यों के ज्ञान एवं वनौषधियों के अनुभव का संग्रहण कर एक डाटाबेस तैयार करने बोर्ड को कार्य करने की जरूरत है ताकि इस डाटा का उपयोग समाज एवं मानव स्वास्थ्य के बेहतरी के लिए किया जा सके।

वन एव जलवायु परिवर्तन मंत्री केदार कश्यप ने कहा कि छत्तीसगढ़ देश का आक्सीजन जोन है। वनौषधियों के संरक्षण एवं संवर्धन की महत्वपूर्ण जिम्मेदारी छत्तीसगढ़ आदिवासी, स्थानीय स्वास्थ्य परंपरा एवं औषधि पादप बोर्ड की है। हमारी सरकार वन में रहने वाली ग्रामीणों के लिए बेहतर कार्य कर रहे है। छत्तीसगढ़ में 5500 रूपये प्रति मानक बोरा के दर समर्थन मूल्य में वनोपज की खरीदी होती है जिसका फायदा तेंदूपता संग्राहकों को मिलता है। इसके साथ ही 67 प्रकार के वनोपज की भी खरीदी होती है। पदभार ग्रहण एवं अभिनंदन समारोह को पूर्व राज्यसभा सांसद समीर उरांव और पादप बोर्ड के नवनिययुक्त अध्यक्ष विकास मरकाम ने भी सम्बोधित किया।

इस अवसर पर रायपुर लोकसभा सांसद बृजमोहन अग्रवाल, राज्यसभा सांसद देवेंद्र प्रताप सिंह, विधायक राजेश मूणत, मोती लाल साहू, गजेंद्र यादव, नीलकंठ टेकाम, प्रणव मरपच्ची, सहित विभिन्न मंडल एवं आयोग के अध्यक्षों, छत्तीसगढ़ आदिवासी, स्थानीय स्वास्थ्य परंपरा एवं औषधि पादप बोर्ड के अधिकारी कर्मचारी गण एवं बड़ी संख्या में गणमान्य नागरिक सहित वैद्य एवं आर्युवेदाचार्य उपस्थित थे।