Rajeshgrd

Jan 01 2024, 22:55

मौत के सुरंग में जाकर बैरल का उत्खनन कर रहे हैं मजदूर

गिरिडीह:- जिले की तिसरी प्रखंड के असुरहड्डी जंगलों में इन दिनों बैरल पत्थरों का उत्खनन धड़ल्ले से हो रही है। हैरत की बात है कि वन प्रक्षेत्र में होने के बावजूद वन विभाग द्वारा इस पर कोई रोक नहीं लगाया जा रहा है।

बता दें असुरहड्डी के जंगलों में अवैध तरीके से पूर्व में एक दो सुरंग संचालित होती थी परन्तु वर्तमान मे बेखौफ तस्कर अब लगभग दर्जनों की संख्या मे अवैध सुरंग बनाकर कर खादान संचालित कर रहे है। 

इन अवैध सुरंगों में जाकर कई मजदूर अपनी जान जोखिम में डाल कर बैरल पत्थर का अवैध खनन कर रहे हैं। कईयों कि तो जान भी जा चुकी है। हालांकि पूर्व में वन विभाग के टीम द्वारा कई बार सुरंगों को जेसीबी मशीन के द्वारा ध्वस्त जरूर किया गया परन्तु वर्तमान मे वन विभाग के द्वारा संज्ञान नहीं लेने के कारण तस्कर धड़ल्ले से अवैध खदानों को संचालित कर रहे है। 

मिली जानकारी के अनुसार पहले इस व्यवसाय में एक दो लोग संलिप्त थे किंतु वर्तमान मे इस अवैध कारोबार से दर्जनों से अधिक लोग जुड़ चुके हैं। स्थानीय लोगों के मुताबिक इस अवैध कारोबार मे क्षेत्र के कई नामचीन लोगों का नाम शामिल हैं। 

बता दें कि जंगलों में उत्खनन किए जा रहे इन बैरल पत्थरों की बड़े शहरों एवं विदेशी बाजारों में काफी अधिक क़ीमत है जिस कारण लोग इस अवैध कारोबार में जुड़ते जा रहे हैं। ऐसे अवैध तरीके से प्राकृतिक खनिजों का धड़ल्ले से उत्खनन और बिक्री होने से ना सिर्फ सरकार के राजस्व कि बल्कि जंगलों एवं पर्यावरण को भी काफी नुकसान पहुंच रहा है।

इस सम्बन्ध में वनक्षेत्र पदाधिकारी अनिल कुमार बात करने पर बताया कि अवैध उत्खनन कि जानकारी मिली है जल्द ही टीम गठित कर कार्रवाई कि जाएगी साथ ही इस धंधे मे जुड़े अवैध कारोबारियों को चिन्हित कर कठोर कार्रवाई भी कि जाएगी। वन प्रक्षेत्र में किसी प्रकार का अवैध उत्खनन नहीं करने दिया जायेगा।

Rajeshgrd

Jan 02 2024, 00:05

इस्तीफे पर विधायक डॉ सरफराज़ अहमद ने तोड़ी चुपी,कहा झारखंड मुक्ति मोर्चा में रहकर जनसेवा करता रहूंगा

गिरिडीह : जेएमएम के गांडेय विधायक डॉ सरफराज अहमद की विधानसभा से इस्तीफा के बाद सुबह से उनके प्रतिक्रिया का इंतजार कार्यकर्ता एवं लोग कर रहे थे । गांडेय विधायक डॉ सरफराज के इस्तीफे के बाद से गांडेय विधानसभा की सीट रिक्त हो गई है। विधायक डॉ अहमद की इस्तीफा को लेकर सोमवार को पूरे दिन राजनीतिक गलियारों मे चर्चाओं का बाजार गर्म रहा। बता दें कि 31 दिसंबर 2023 को गांडेय विधायक डॉ सरफराज़ अहमद ने अपने पद से इस्तीफा दिया है और मीडिया को इसकी जानकारी साल कि पहले दिन की सुबह को मिली। डॉ सरफराज ने इस्तीफा क्यों दिया उसपर उनकी चुप्पी कई सवाल खड़े कर रही थी। इस मामले में शाम को डॉ सरफराज ने दूरभाष बताया कि उनके इस्तीफे का कारण निजी और पारिवारिक वज़ह है। उन्होने कहा कि ये उनका व्यक्तिगत फैसला है वो किसी दूसरे दल में जाने के लिए इस्तीफा नहीं दिए है. जेएमएम में ही रहकर जनसेवा करते रहेंगे। मै झारखंड मुक्ति मोर्चा का सिपाही हूं और आगे भी रहूंगा। बताया जाता है कि झारखंड कांग्रेस के नये प्रभारी गुलाम अहमद मीर से डॉ अहमद का बेहतर संबंध है जिसको लेकर उनके कांग्रेस में वापसी के कयास लगाये जा रहे थे, लेकिन इसपर डॉ सरफराज ने विराम लगाते हुए कहा कि उनका किसी के साथ संबंध खराब नहीं है। उन्होने कहा कि विधानसभा से इस्तीफा देने के बाद संगठन को मजबूत करने की दिशा में कार्य जारी रहेगा। निशिकांत दुबे के द्वारा सोशल मीडिया प्लेटफॉम एक्स पर किये गए पोस्ट पर उन्होने कहा कि निशिकांत दुबे तो रविवार को भी चुनाव आयोग का दफ्तर खोलकर सारी फाइल देखते है। उनके बयानबाजी पर मुझे कुछ नहीं कहना, वो ईडी की छापेमारी से लेकर अन्य सारे मामलों में पहले भी इस तरह की भविष्यवाणी कर चुके है। निशिकांत दुबे ने पोस्ट कर गांडेय की खाली सीट पर हेमंत सोरेन की पत्नी कल्पना सोरेन कि चुनाव लड़ने का दवा किया था।